मलिहाबाद में ई-रिक्शा चालक ने ट्रेन के सामने कूदकर दी जान, परिजनों में मचा कोहराम
लखनऊ । राजधानी के मलिहाबाद क्षेत्र के रहीमाबाद थाना में ई-रिक्शा चालक ने ट्रेन के सामने कूदकर आत्महत्या कर ली। युवक की पहचान 32 वर्षीय ज्ञानेंद्र पाल के रूप में हुई है। घटना से परिवार में कोहराम मच गया है। सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम को भेज दिया है।

रेलवे ट्रैक पर शव मिलने की सूचना पर दौड़ी पुलिस

रहीमाबाद इंस्पेक्टर के मुताबिक शनिवार की सुबह 11.30 बजे पुलिस कंट्रोल रूम पर ससपन इलाके में रेलवे ट्रैक पर शव मिलने की सूचना मिली थी। मौके पर पहुंची पुलिस ने शव की शिनाख्त ई-रिक्शा चालक ज्ञानेंद्र पाल के रूप में की। घटनास्थल पर मौजूद परिजनों ने बताया शुक्रवार को ज्ञानेंद्र पाल बाइक लेकर घर से निकले थे, लेकिन देर शाम वह बगैर बाइक के घर लौटे इस पर परिजनों ने बाइक के बारे में पूछताछ की, लेकिन ई-रिक्शा चालक ने कोई जवाब नहीं दिया।

मौके से पुलिस को नहीं मिला कोई सुसाइड नोट

परिजनों ने बताया शनिवार सुबह घर के लोग मवेशियों को चारा देने के लिए गए थे, इस बीच ज्ञानेंद्र पाल बगैर बताए घर से बाहर चले गए और रेलवे ट्रैक पर ट्रेन के आगे कूद कर आत्महत्या कर ली।रहीमाबाद इंस्पेक्टर ने बताया कि पुलिस को मृतक के पास किसी भी प्रकार का सुसाइड नोट नहीं मिला है। फिलहाल पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही मौत की पुष्टि होगी।
नाले में गिरे युवक की तलाश जारी, चौबीस घंटे बाद भी नहीं मिलने से परिजनों में आक्रोश

लखनऊ । राजधानी के ठाकुरगंज क्षेत्र में तेज बारिश के बाद जलभराव से भरी सड़क पर नजर न आने वाले खुले नाले में फिसलकर एक 40 वर्षीय युवक सुरेश लोधी गिर गया और तेज बहाव में बहते हुए लापता हो गया। घटना के 24 घंटे बीत जाने के बाद भी उसका कोई सुराग नहीं लग सका है। हालांकि नगर निगम की टीम रविवार की सुबह होते ही फिर से सर्च अभियान शुरू किया गया है। वहीं युवक के न मिलने से परिजनों का रो रोकर बुरा हाल है।

शहर में खुले नाले बन रहे मौत की वजह

जानकारी के लिए बता दें कि राधा ग्राम योजना निवासी सुरेश लोधी शनिवार सुबह अपने काम पर निकल रहे थे। भारी बारिश के बाद इलाके की सड़कें जलमग्न थीं। जलभराव के कारण सड़क किनारे मौजूद करीब आठ फीट गहरे नाले की गहराई और खुलापन नजर नहीं आ रहा था। इसी दौरान सुरेश का पैर फिसला और वह सीधे नाले में जा गिरे। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार वह पानी के तेज बहाव में बहते चले गए।घटना के बाद स्थानीय लोगों ने तुरंत परिजनों और पुलिस को सूचना दी। लगभग दो घंटे बाद नगर निगम, एसडीआरएफ, फायर ब्रिगेड व एम्बुलेंस की टीमें मौके पर पहुंचीं। इसके बाद शुरू हुआ सघन सर्च अभियान। कई  घंटे चले ऑपरेशन में करीब 500 मीटर तक नाले को खंगाला गया, लेकिन सुरेश का कोई अता-पता नहीं चल पाया।

शाम तक युवक के न मिलने पर परिजनों का फूटा गुस्सा, लगाया जाम

शनिवार की शाम तक सुरेश की कोई खबर न मिलने पर स्थानीय लोगों का आक्रोश फूट पड़ा। सैकड़ों की संख्या में लोग हरदोई रोड स्थित सेंट जोसेफ स्कूल के पास जमा हो गए और नगर निगम की लापरवाही के खिलाफ प्रदर्शन करने लगे। कुछ देर के लिए सड़क पूरी तरह से जाम हो गई और मौके पर मौजूद पुलिस बल के साथ हल्की धक्कामुक्की भी हुई। मामला को बढ़ता देखकर पुलिस ने कड़ाई से पेश आते हुए लाठी फटकार कर सभी को मौके से भगा दिया।

नगर निगम की नाकामी पर उठे सवाल

स्थानीय लोगों ने बताया कि नाले की सफाई के दौरान हटाए गए ढक्कन को महीनों बाद भी दोबारा नहीं रखा गया था। नतीजा यह हुआ कि जलभराव की स्थिति में खुले नाले मौत का जाल बन गए। इस लापरवाही को लेकर लोगों में भारी गुस्सा है। यह हाल केवल ठाकुरगंज का ही नहीं है । शहर में आपको जगह-जगह खुले नाले को देखा जा सकता है। बारिश के दिनों में यही खुले नाले जानलेवा साबित हो रहे है। क्योंकि बारिश होने से सड़के जलमग्न हो जाती है। जिसकी वजह से नाला कहा है और सड़क कहां पर है, इसका पता नहीं चल पाता है। हर साल बारिश के दिनों में इस की घटनाएं देखने को मिलती है। इसके बाद भी नगर निगम इसे लेकर गंभीर नहीं दिखता है। जब कोई हादसा हो जाता है तो चार दिन नगर निगम गंभीरता दिखाती है, इसके बाद फिर भूल जाती है।

सुबह होते ही एनडीआरएफ, एसडीआरएफ ने शुरू किया रेस्क्यू अभियान

रविवार की सुबह होने से घटना स्थल पर एनडीआरएफ व एसडीआरएफ की टीम पहुंचकर सर्च अभियान शुरू कर दिया है। अभी तक नाले में गिरे युवक का कहीं पता नहीं चल पाया है। इस पूरे कार्य के लिए सौ से अधिक लोगों को लगाया गया है। सुबह दस बजे तक युवक सुरेश का पता नहीं चल पाया है। हालांकि इस दौरान स्थानीय लोग भी युवक को खोजने में सहयोग कर रहे है।  इसके बाद भी युवक का पता न चल पाना चिंता का विषय बना हुआ है।
कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने नरेंद्र देव कृषि विवि में धान रोपाई का किया निरीक्षण
लखनऊ/अयोध्या। प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने आज नरेंद्र देव कृषि विश्वविद्यालय कुमारगंज, अयोध्या का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने विश्वविद्यालय द्वारा विकसित धान की किस्म एनडीआर 20/65 की लाइन सोइंग का गहनता से निरीक्षण किया। धान की यह प्रजाति 90 से 110 दिनों के भीतर तैयार हो जाती है।
कृषि मंत्री ने किसानों को नई तकनीक अपनाने के लिए प्रेरित करते हुए स्वयं खेत में उतरकर लाइन में धान की रोपाई भी की। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि नई किस्मों और आधुनिक कृषि पद्धतियों को अपनाकर किसान अपनी आय में उल्लेखनीय वृद्धि कर सकते हैं।
इस अवसर पर विश्वविद्यालय के उप कुलपति वीरेंद्र सिंह सहित कई कृषि वैज्ञानिक एवं विश्वविद्यालय कर्मी उपस्थित रहे। कृषि मंत्री ने वैज्ञानिकों से बातचीत कर धान की नई किस्मों और कृषि अनुसंधान में हो रही प्रगति की जानकारी ली। उन्होंने कहा कि सरकार किसानों के हित में कृषि क्षेत्र में शोध और विकास को लगातार बढ़ावा दे रही है। यह दौरा कृषि उत्पादन बढ़ाने और किसानों को उन्नत तकनीकों से जोड़ने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
तेग बहादुर संदेश यात्रा का सीएम योगी ने किया शुभारंभ
* मुख्यमंत्री ने कहा- गुरुजी का बलिदान राष्ट्रीय एकता की मिसाल

लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को श्री गुरु तेग बहादुर जी के 350वें शहीदी दिवस के अवसर पर 'तेग बहादुर संदेश यात्रा' का मुख्यमंत्री आवास से शुभारंभ किया। यह ऐतिहासिक यात्रा लखनऊ से शुरू होकर कानपुर, इटावा, आगरा होते हुए दिल्ली के चांदनी चौक स्थित गुरुद्वारा श्री शीशगंज साहिब तक जाएगी। मुख्यमंत्री ने इस यात्रा को बलिदान, शांति और राष्ट्रीय एकता का प्रतीक बताया।
मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर गुरु तेग बहादुर जी के बलिदान को याद करते हुए कहा कि उन्होंने सनातन धर्म की रक्षा के लिए अपने प्राणों की आहुति दी। उन्होंने कहा कि गुरुजी का जीवन भारत की सांप्रदायिक सौहार्द, सहिष्णुता और धर्मनिष्ठा की सर्वोच्च मिसाल है। यह यात्रा उनकी वीरता और सिद्धांतों को जन-जन तक पहुंचाने का माध्यम बनेगी।
सीएम योगी ने कहा कि वर्तमान समय में मतांतरण एक बड़ी चुनौती है। कुछ तत्व हिंदू और सिख समुदायों में दरार डालने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि सरकार मतांतरण के विरुद्ध कठोर कार्रवाई कर रही है, लेकिन समाज को भी सजग रहने की जरूरत है। उन्होंने चेताया कि हिंदू युवतियों को निशाना बनाया जा रहा है, और ऐसी किसी भी गतिविधि की जानकारी तुरंत प्रशासन को दें। उन्होंने गुरु ग्रंथ साहिब को संपूर्ण मानवता के लिए प्रेरणास्रोत बताया और कहा कि आज नई रणनीति से समाज और राष्ट्र की रक्षा की आवश्यकता है, जिस तरह से गुरु तेग बहादुर जी ने औरंगजेब के अत्याचारों के खिलाफ डटकर खड़े होकर बलिदान दिया था।
इस कार्यक्रम में दिल्ली गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के महासचिव समेत कई पदाधिकारी उपस्थित रहे और मुख्यमंत्री का सम्मान किया। इससे पूर्व यात्रा गुरुद्वारा श्री गुरु सिंह सभा, नाका हिंडोला से प्रारंभ होकर मुख्यमंत्री आवास पहुंची, जहां पुष्पवर्षा, शबद कीर्तन और गुरु लंगर का आयोजन हुआ।
EOW समीक्षा बैठक में उत्कृष्ट कार्य पर निरीक्षक सम्मानित, लापरवाही पर एक निलंबित

लखनऊ । उत्तर प्रदेश आर्थिक अपराध अनुसंधान संगठन (EOW की जून 2025 के कार्य प्रदर्शन की मासिक समीक्षा बैठक शुक्रवार को लखनऊ स्थित पुलिस मुख्यालय में सम्पन्न हुई। इस समीक्षा बैठक की अध्यक्षता पुलिस महानिदेशक EOW नीरा रावत ने की। उन्होंने कहा कि आर्थिक अपराधों पर नकेल कसने के लिए कार्य में तत्परता, पारदर्शिता और जवाबदेही अनिवार्य है। प्रत्येक अधिकारी यह सुनिश्चित करे कि दोषियों को न्यायालय से सजा मिले और जनता में ईओडब्लू की सख्त छवि बनी रहे।


सभी 7 सेक्टरों के कार्यों की गहन समीक्षा की गई

बैठक के दौरान ईओडब्लू के सभी 7 सेक्टरों के कार्यों की गहन समीक्षा की गई और प्राप्त लक्ष्यों की पूर्ति के आधार पर अधिकारियों व कर्मियों की जवाबदेही तय की गई।इस अवसर पर जिन अधिकारियों ने लक्ष्य के अनुरूप बेहतर प्रदर्शन किया, उन्हें सम्मानित किया गया, जबकि जिनकी कार्यप्रणाली में लापरवाही या शिथिलता पाई गई, उनके विरुद्ध अनुशासनात्मक कार्रवाई की गई।

सर्वश्रेष्ठ विवेचक और सर्वश्रेष्ठ सेक्टर को मिला पुरस्कार

जून माह के कार्य निष्पादन के आधार पर विशेष प्रकोष्ठ सेक्टर को “सर्वश्रेष्ठ सेक्टर” के पुरस्कार से सम्मानित किया गया। इसके साथ ही निरीक्षक प्रवीण सिंह को उनके बेहतरीन विवेचनात्मक कार्य के लिए “सर्वश्रेष्ठ विवेचक” घोषित करते हुए सम्मानित किया गया। यह पुरस्कार उनकी केस इन्वेस्टिगेशन, समयबद्ध चार्जशीटिंग और अदालती ट्रायल की प्रभावी निगरानी के आधार पर प्रदान किया गया।

लापरवाही पर निलंबन, DG ने दिए सख्त निर्देश

पुलिस महानिदेशक ईओडब्लू ने समीक्षा के दौरान वाराणसी सेक्टर में तैनात एक निरीक्षक की कार्यशैली में गंभीर लापरवाही और उदासीनता पाए जाने पर तत्काल प्रभाव से निलंबन की कार्रवाई की। उन्होंने कहा कि विवेचना में शिथिलता या अभियुक्तों को राहत देने वाली प्रवृत्ति को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।

बैठक में DG नीरा रावत ने सभी सेक्टर प्रभारी दिये निर्देश

अभियुक्तों की गिरफ्तारी में तेजी लाई जाए।
ट्रायल केसों की मॉनिटरिंग नियमित रूप से हो और अभियुक्तों को सजा दिलाने की दिशा में सशक्त पैरवी की जाए।
प्रत्येक विवेचना को Target Approach के तहत तय समयसीमा में पूर्ण किया जाए।
जिन मामलों में संगठित अपराध की परिभाषा लागू होती है, वहां उसी आधार पर कार्रवाई सुनिश्चित की जाए।
जमीन दिलाने के नाम पर लाखों रुपये की ठगी करने वाला संदीप वर्मा गिरफ्तार
लखनऊ । राजधानी के विभूतिखण्ड थाना पुलिस ने जमीन दिलाने के नाम पर लाखों रुपये की ठगी करने वाले एक वांछित अभियुक्त को गिरफ्तार किया है। आरोपी संदीप वर्मा, एवियान्स डेवलपर्स एवं इन्फ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड नामक कंपनी का डायरेक्टर है, जिसने अपने साथियों संग मिलकर लोगों से प्लॉट देने के नाम पर भारी रकम हड़प ली।

पूरा मामला ऐसे हुआ उजागर

5 जुलाई  को राजकीय आयुर्वेद महाविद्यालय के एसोसिएट प्रोफेसर व विभागाध्यक्ष डॉ. अरविंद कुमार उपाध्याय ने थाना विभूतिखण्ड में शिकायत दी थी कि संजय कुमार वर्मा नामक व्यक्ति ने जमीन दिलाने के नाम पर उनसे लाखों रुपये ठग लिए। पैसा वापस मांगने पर उन्हें गाली-गलौज और जान से मारने की धमकी दी गई। पुलिस ने तत्काल मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की। जांच के दौरान कंपनी के दूसरे डायरेक्टर संदीप वर्मा का नाम भी प्रकाश में आया।

इनके आपराधिक इतिहास के  बारे में जुटाई जा रही जानकारी

पुलिस ने संदीप वर्मा पुत्र जगनारायण वर्मा, निवासी ग्राम पटना सैदखानपुर, थाना कूरेभार, जनपद सुल्तानपुर (उम्र 32 वर्ष) को उसके गांव से गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तारी उ.नि. आसित कुमार यादव, उ.नि. राजेश कुमार यादव व कांस्टेबल दुर्गेश सिंह की टीम ने की। आरोपी को न्यायिक अभिरक्षा में भेजा जा रहा है।आरोपियों ने प्लॉट की रजिस्ट्री दिखाकर आम नागरिकों से ठगी की और प्राप्त पैसों से अपने निजी शौक पूरे किए। पुलिस अन्य जनपदों से आरोपी के आपराधिक इतिहास की जानकारी भी जुटा रही है।
57 लाख के छात्रवृत्ति घोटाले में पूर्व समाज कल्याण अधिकारी उग्रसेन पाण्डेय गिरफ्तार
लखनऊ । उत्तर प्रदेश आर्थिक अपराध अनुसंधान संगठन (EOW) ने छात्रवृत्ति घोटाले के एक अहम आरोपी और पूर्व जिला समाज कल्याण अधिकारी उग्रसेन पाण्डेय को कानपुर से गिरफ्तार कर लिया है। आरोपी पर अनुसूचित जाति/जनजाति के छात्रों के लिए जारी 57.53 लाख की छात्रवृत्ति की धनराशि के गबन का गंभीर आरोप है। यह कार्रवाई पुलिस महानिदेशक EOW के निर्देशन में चलाए जा रहे गिरफ्तारी अभियान के तहत की गई।

इस पूरे प्रकरण में कुल 71 लोगों को जांच में दोषी पाया गया

जनपद हाथरस में 7  प्राइवेट शिक्षण संस्थाओं के सत्र 1999-2006 तक कक्षा 1 से 12 के अनुसूचित जाति/जनजाति को मिलने वाली छात्रवृत्ति की धनराशि 57,53000 रुपये  के गबन के सम्बन्ध में थाना सिकन्दरा जनपद हाथरस में  भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम में मुकदमा  पंजीकृत होकर प्रारम्भिक स्तर पर विवेचना थाना स्थानीय सिकन्दराराव ,हाथरस से हुई। यूपी शासन के शासनादेश 28 दिसंगर 2007  द्वारा उक्त विवेचना ईओडब्लू यूपी को प्रदान की गयी।  जिसके क्रम में ईओडब्लू कानपुर सेक्टर द्वारा विवेचना संपादित की गयी। ईओडब्लू की विवेचना से उक्त अभियोग में कुल 71 ( 58 लोकसेवक एवं 13 प्राइवेट) अभियुक्त छात्रवृत्ति घोटाला/गबन के दोषी पाये गये थे, जिसमें 25 अभियुक्तों (13 प्राइवेट एवं 12 लोकसेवक) के विरुद्ध आरोप-पत्र न्यायालय प्रेषित किया जा चुका है।

अभी भी 35 अभियुक्तों की गिरफ्तारी के किये जा रहे प्रयास

जिसमें 5 अभियुक्तों की मृत्यु हो चुकी है तथा 4 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई  के सम्बन्ध में उच्च न्यायालय, इलाहाबाद द्वारा रोक (स्टे) लगाई गई है। उक्त अभियोग में अभियुक्त उग्रसेन पाण्डेय निवासी शिवतारा थाना आलापुर जनपद अम्बेडकरनगर (तत्कालीन जिला समाज कल्याण अधिकारी हाथरस ,यूपी ) वांछित था, जिसे पुलिस महानिदेशक, ईओडब्लू यूपी लखनऊ  के द्वारा अभियुक्तों की गिरफ्तारी के लिए चलाये गये अभियान के तहत ईओडब्लू टीम द्वारा कानपुर से गिरफ्तार किया गया। शेष 35 अभियुक्तों (लोकसेवक) की गिरफ्तारी का प्रयास जारी है।
उर्वरक सब्सिडी घोटाले का वांछित अभियुक्त चन्द्रभान वर्मा गिरफ्तार
लखनऊ । उत्तर प्रदेश आर्थिक अपराध अनुसंधान संगठन (EOW) ने 72 लाख रुपये के उर्वरक सब्सिडी घोटाले में वांछित चल रहे आरोपी चन्द्रभान वर्मा को लखनऊ से गिरफ्तार कर लिया है। आरोपी पर फर्जी बिल व दस्तावेज़ों के जरिए सब्सिडी की धनराशि का गबन करने का गंभीर आरोप है। यह गिरफ्तारी पुलिस महानिदेशक ईओडब्लू के निर्देश पर चलाए जा रहे अभियान के तहत हुई है।

रॉक फास्फेट व सिंगल सुपर फास्फेट  सप्लाई करता था

ईओडब्लू टीम ने वर्ष 1998-2000 के दौरान हुए करोड़ों के उर्वरक सब्सिडी घोटाले के एक अहम आरोपी चन्द्रभान वर्मा को लखनऊ से गिरफ्तार किया है। आरोपी चन्द्रभान वर्मा, ललितपुर स्थित स्टार मिनरल्स और मून इंटरप्राइजेज का व्यवस्थापक था, जो मैसर्स अवध फर्टिलाइजर्स प्रा. लि., मिहीपुरवा, बहराइच को उर्वरक का कच्चा माल – रॉक फास्फेट व सिंगल सुपर फास्फेट – सप्लाई करता था।

72 लाख की धोखाधड़ी में था शामिल

जांच में पाया गया कि अवध फर्टिलाइजर्स के निदेशकों ने चन्द्रभान व अन्य सप्लायरों से मिलीभगत कर फर्जी दस्तावेज़ों के माध्यम से उर्वरक पर मिलने वाली लगभग 72 लाख की सरकारी सब्सिडी का गबन किया। इन लोगों ने परिवहन के फर्जी बिल-बाउचर और वाहनों के कूटरचित दस्तावेज तैयार किए थे।इस संबंध में वर्ष 2006 में थाना मोतीपुर, जनपद बहराइच में IPC की कई गंभीर धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया गया था।

अब तक 14 निजी अभियुक्त दोषी पाए गए

ईआोडब्लू की डीजी नीरा रावत ने बताया कि  राज्य सरकार के आदेश पर इस प्रकरण की जांच ईओडब्लू को सौंपी गई थी, जिसमें अब तक 14 निजी अभियुक्त दोषी पाए गए हैं। इनमें से 3 की मृत्यु हो चुकी है, 5 के खिलाफ आरोप-पत्र दाखिल हो चुका है और शेष 5 की गिरफ्तारी के प्रयास जारी हैं।चन्द्रभान वर्मा की गिरफ्तारी से इस बहुचर्चित घोटाले के कानूनी निष्कर्ष की दिशा में अहम प्रगति मानी जा रही है।
आलमबाग में पुलिस और बदमाश में मुठभेड़: गोली लगने के बाद कुख्यात लुटेरा गिरफ्तार, 57 मुकदमों में वांछित
लखनऊ । राजधानी के आलमबाग इलाके में शुक्रवार देर रात पुलिस और एक शातिर बदमाश के बीच मुठभेड़ हो गई। चेन लूट की घटना में वांछित बदमाश सतेंद्र उर्फ कालिया पुलिस की घेराबंदी में फंस गया और भागने की कोशिश में उसने फायरिंग शुरू कर दी। जवाबी कार्रवाई में पुलिस की गोली उसके पैर में लगी, जिससे वह घायल हो गया। आरोपी को गिरफ्तार कर इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। पुलिस के अनुसार, सतेंद्र पर विभिन्न जनपदों में 57 मुकदमे दर्ज हैं और वह एक गैंगस्टर एक्ट का अभियुक्त भी है।

पुलिस को देखते ही शुरू कर दी फायरिंग

जानकारी के लिए बता दें आलमबाग थानाक्षेत्र में चेन लूट की घटना होने के बाद से पुलिस लगातार जांच में जुटीं थी। इसी दौरान सीसीटीवी कैमरे से चेन लूटने वाले की फुटेज हाथ लगी। इसी क्रम में शुक्रवार की रात्रि पुलिस को सूचना मिली की चेन लूट की घटना को अंजाम देने वाला लंगड़ा फाटक के पास आने वाला है। सूचना पर पुलिस वहां पहुंचकर जांच पड़ताल शुरू कर दी। थोड़ी देर में एक बाइक सवार आता नजर आया। पुलिस ने रोकने का प्रयास किया तो भागने लगा। इस दौरान बाइक से फिसलकर गिर गया। पुलिस ने पकड़ने चाहा तो फायरिंग शुरू कर दी।

घायल बदमाश के ऊपर दर्ज हैं कुल 57 मुकदमे

अपर पुलिस उपायुक्त मध्य ने बताया कि पुलिस ने भी आत्मरक्षार्थ फायर किया तो बदमाश घायल हो गया। इसके बाद पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। पूछताछ में घायल बदमाश ने अपना नाम सतेंद्र निषाद पुत्र मुनेश्वर लाल निवासी पारा क्षेत्र बताया। बदमाश के कब्जे से दो जिंदा कारतूस, तमंचा और बाइक और एक टूटी हुई चेन भी बरामद हुई है। इसके अपराधिक इतिहास के बारे में पता किया गया तो पता चला कि इसके ऊपर कुल 57 मुकदमे दर्ज है। यह एक अंतरजनपदीय स्तर का अपराधी है। यह बाराबंकी से गैंगेस्टर में अभियुक्त है और आठ मुकदमों इसको सजा हो चुकी है।
समाज कल्याण विभाग में एआई आधारित योजनाओं की प्रभावी क्रियान्वयन को लेकर कार्यशाला आयोजित

लखनऊ। उत्तर प्रदेश समाज कल्याण विभाग ने अपनी योजनाओं को अधिक पारदर्शी, जनहितकारी और समयबद्ध बनाने के लिए तकनीकी नवाचार की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। शुक्रवार को समाज कल्याण निदेशालय में " एआई का समाज कल्याण की योजनाओं में उपयोग" विषय पर एक विशेष कार्यशाला का आयोजन किया गया।

कार्यशाला का उद्देश्य कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई ) की मदद से योजनाओं के क्रियान्वयन, निगरानी और मूल्यांकन की प्रक्रिया को और अधिक पारदर्शी व प्रभावी बनाना रहा। इसमें चैटजीपीटी (ChatGPT) जैसे आधुनिक टूल्स के उपयोग से योजना निर्माण, रिपोर्ट संकलन व संक्षिप्त प्रस्तुतिकरण के तरीकों पर चर्चा की गई।
वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जुड़े राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) असीम अरुण ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का विजन है कि अधिक से अधिक लोगों का क्षमतावर्धन हो। इसके लिए तकनीक को तेजी से अपनाने की आवश्यकता है। उन्होंने अधिकारियों से आह्वान किया कि वे तकनीक को जनसेवा का सशक्त माध्यम बनाएं।
मुख्य वक्ता सुमित कुमार सिंह, संस्थापक एसीई एआई और हार्वर्ड बिजनेस स्कूल, आईआईटी दिल्ली तथा आईआईएम लखनऊ के पूर्व छात्र हैं। उन्होंने एआई की व्यावहारिक उपयोगिता, डेटा विश्लेषण व योजनागत सुधारों में इसके योगदान पर विस्तार से प्रकाश डाला।
अपर मुख्य सचिव वेंकटेश्वर लू ने अधिकारियों को नवाचारों को शीघ्र अपनाने हेतु प्रेरित किया। कार्यशाला में निदेशक कुमार प्रशांत, महाप्रबंधक विपिन कुमार पांडेय, जिला समाज कल्याण अधिकारी शिवम सागर सहित अनेक अधिकारी, कर्मचारी, सर्वोदया स्कूल, आईटीआई और पॉलिटेक्निक के प्रधानाचार्य भी मौजूद रहे।