जल्द होगी सभी विषयों की एसटीईटी परीक्षा, बीएड के साथ ये डिग्री अनिवार्य
डेस्क : बिहार में शिक्षक बनने का इतंजार कर रहे अभ्यर्थियों के लिए खुशखबरी है। राज्य में जल्द ही सभी विषयों की माध्यमिक शिक्षक पात्रता परीक्षा (एसटीईटी) होगी। शिक्षा विभाग ने बिहार विद्यालय परीक्षा समिति (बीएसईबी) को परीक्षा कराने की हरी झंडी दे दी है। साथ ही विभाग की ओर से आवश्यक दिशा-निर्देश भी भेज दिया गया है।अब बिहार बोर्ड जल्द ही चौथी एसटीईटी का आवेदन लेने से लेकर परीक्षा तक की तिथि तय करेगा।
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नियोजित शिक्षकों की तीसरे चरण की सक्षमता परीक्षा के बाद एसटीईटी होने के आसार हैं। राज्य के माध्यमिक और उच्चतर माध्यमिक स्कूलों में कक्षा 9 से 12 तक के शिक्षक बनने के लिए एसटीईटी उत्तीर्ण होना आवश्यक है। पिछले दिनों बिहार विद्यालय परीक्षा समिति ने इसके आयोजन को लेकर शिक्षा विभाग से आवश्यक मार्गदर्शन मांगा था। इस पर शिक्षा विभाग ने बिहार बोर्ड को एसटीईटी कराने की मंजूरी दे दी है।
शिक्षा विभाग ने अपने निर्देश में कहा है कि जल्द ही एसटीईटी करा लें, ताकि बीपीएससी की अध्यापक नियुक्ति परीक्षा (चौथा चरण) के लिए पर्याप्त संख्या में योग्य अभ्यर्थी मिल जाएं। बिहार में पहली एसटीईटी 2011 में हुई थी। इसके बाद 2019 और 2023 में हुई थी।
कक्षा 9 और 10 के माध्यमिक शिक्षक की पात्रता के लिए एसटीईटी के पेपर 1 में न्यूनतम उत्तीर्णता अंक लाना अनिवार्य है। परीक्षा में शामिल होने के लिए अभ्यर्थी को स्नातक में 50 प्रतिशत अंक के साथ ही बीएड होना आवश्यक है। इसी प्रकार कक्षा 11 और 12 के उच्च माध्यमिक शिक्षक की पात्रता के लिए स्नातकोत्तर में 50 प्रतिशत अंकों के साथ एसटीईटी का पेपर 2 में न्यूनतम उत्तीर्णता अंक लाना आवश्यक है।
एसटीईटी में शामिल होने के लिए सामान्य वर्ग के पुरुष अभ्यर्थियों के लिए अधिकतम उम्र 37 वर्ष है। सामान्य वर्ग की महिला, पिछड़ा, अत्यंत पिछड़ा वर्ग और दिव्यांग अभ्यर्थियों के लिए 40 वर्ष और एससी-एसटी वर्ग के अभ्यर्थियों के लिए अधिकतम उम्र सीमा 42 वर्ष है। सामान्य वर्ग के अभ्यर्थियों को एसटीईटी में उत्तीर्णता के लिए 50 प्रतिशत अंक लाना जरूरी है। वहीं, एससी,एसटी, अत्यंत पिछड़ा वर्ग, पिछड़ा वर्ग, दिव्यांग और महिला अभ्यर्थियों को उत्तीर्णता के न्यूनतम 45 प्रतिशत अंक लाना अनिवार्य है। बिहार में पहली एसटीईटी 2011 में हुई थी।
May 12 2025, 13:37