*स्कूली मैजिक में बाराती, बिना परमिट के नियम विरुद्ध हो रहा परिवहन*
अमेठी। स्कूल वाहनों (छोटे मैजिक) से लगातार परिवहन नियमों का उल्लंघन करते हुए बिना परमिट के बरात ले जाई जा रही है। इन पर न तो आरटीओ की ओर से कोई कार्रवाई हो रही है और न ही पुलिस-प्रशासन की ओर से। ऐसा नहीं है कि स्कूली वाहनों में बारात सिर्फ जिले के अंदर ही ले जाई जाती है बल्कि आस पास के जिले की स्कूल बसों को एक-दूसरे में बारात ढोते आसानी से देखा जा सकता है।
शादियों के सीजन में स्कूल संचालक स्कूल की मैजिक, मारुति वैन को व्यावसायिक उपयोग में लगा देते हैं। हर साल मार्च माह में परीक्षाएं खत्म होने के बाद से स्कूल शुरू होने तक संचालक लगातार बसों का संचालन व्यावसायिक रूप से करते रहते हैं। सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो में मैजिक नेशनल हाइवे पर पूरे तोमड में स्थित आशाराम पब्लिक स्कूल का बताया जा रहा है।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार कोतवाली क्षेत्र कासिमपुर के बगल एक गांव शादी में आशाराम पब्लिक स्कूल की स्कूली मैजिक संख्या यूपी 36 टी 3669 बुक की गई थी। जिसमें बाराती बैठकर रवाना हुए थे। किसी ने इसकी वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर वायरल कर दी।
पांच तक की अस्थाई मान्यता पर चल रहा हाईस्कूल
शिक्षा के मंदिर को व्यापार बना दिया गया है। स्कूल संचालकों ने जुगाड़ू मान्यता लेकर तो कुछ ने बिना मान्यता के दूसरे स्कूलों में दाखिला दिखाकर अपनी शिक्षा की दुकान चला रहे है। यह सब चोरी चुपके नहीं बल्कि शिक्षा विभाग के क्षेत्रीय रहनुमाकारों की बदौलत चल रहा है। इतने पर कोटा न भरने पर संचालकों ने निजी वैन से छात्र-छात्राओं को स्कूल लाने और घर छोड़ने के लिए लगा कर जमकर धन उगाही कर रहे है।
विकास खंड बहादुरपुर अन्तर्गत नेशनल हाइवे पर पूरे तोमड के पास बने आशाराम पब्लिक स्कूल की कहानी ही अलग है। इस स्कूल को अस्थाई मान्यता कक्षा एक से पांच तक के लिए मिली है। लेकिन यहां पर केजी से हाई स्कूल तक शिक्षण कार्य चल रहा है। शिकायत पर हुई विभागीय जांच में खुलासा भी हुआ है और अतिरिक्त कक्षाएं भी निरीक्षण के दौरान संचालित पाई गई थी। इतना ही नहीं अभिलेख में जिन शिक्षकों द्वारा कक्षाओं में पढ़ाये जाने के लिए अधिकृत किया गया था। वह निरीक्षण के दौरान नहीं पाए गए थे। बल्कि उनकी जगह कोई हाई स्कूल पास तो कोई इंटर पास शिक्षक बच्चों को पढ़ाते मिले थे। लेकिन उस निरीक्षण में सिर्फ कागजी कोरम पूरा कर निरीक्षण आख्या को फाइलों में बंद कर दिया गया था। आशाराम पब्लिक स्कूल के प्रबंधक शिवांशु प्रजापति ने अपने नाम से निजी वैन संख्या यूपी 33 एआर 9522 से छात्र छात्राओं को स्कूल लाने व घर छोड़ने के नाम पर अभिभावको की जेब ढीली कर रहे है। जबकि वैन को स्कूली परमिट नहीं मिला है। शिक्षा विभाग भी अपनी कलम बचाने के लिए सिर्फ नोटिसें जारी कर इतिश्री कर लेती है। वहीं लोग बताते है कि बीएसए ऑफिस में एक बाबू के कहने पर खंड शिक्षा कार्यालय बहादुरपुर के शागिर्द में संचालित किया जा रहा है।
स्कूली वाहनों को बारात या अन्य किसी तरह की बुकिंग में इस्तेमाल नहीं किया जा सकता है, अगर ऐसा है तो कार्यवाही की जाएगी।
May 17 2023, 19:00