मध्य और दक्षिणी छत्तीसगढ़ में भारी बारिश की संभावना, इन स्थानों के लिए येलो, ऑरेंज और रेड अलर्ट जारी

रायपुर- मानसून की एंट्री के बाद भी छत्तीसगढ़ के कई हिस्सों में बारिश नहीं होने से लोगों को गर्मी से राहत नहीं मिल रही है. इस बीच मौसम विभाग ने मध्य और दक्षिण छत्तीसगढ़ में भारी बारिश की संभावना जताई है. इसके लिए 27 जिलों में अगले 24 से 48 घंटे तक अलर्ट जारी किया गया है. जिसमें येलो और ऑरेंज अलर्ट शामिल हैं. साथ ही एक-दो जगहों पर रेड अलर्ट भी जारी कर चेतावनी दी गई है.

अगले 24 घंटों में भारी बारिश की चेतावनी

मौसम विभाग के अनुसार, येलो अलर्ट: प्रदेश के राजनांदगांव, मोहला-मानपुर-अंबागढ़ चौकी, बस्तर, कोंडागांव, दंतेवाड़ा, कांकेर और नारायणपुर जिलों में एक-दो स्थानों पर अति भारी वर्षा होने की संभावना है. साथ ही गरियाबंद, धमतरी और खैरागढ़- छुईखदान-गंडई जिलों में एक-दो स्थानों पर भारी वर्षा होने की संभावना है. 

ऑरेंज अलर्ट: बालोद जिले में एक-दो स्थानों पर अति भारी वर्षा होने की संभावना है.

रेड अलर्ट: सुकमा और बीजापुर जिलों में एक-दो स्थानों पर चरम भारी वर्षा होने की संभावना है.

अगले 48 घंटों के लिए येलो और ऑरेंज अलर्ट जारी

येलो अलर्ट: प्रदेश के रायपुर, बलौदाबाजार, गरियाबंद, धमतरी, महासमुंद, दुर्ग, बालोद, खैरागढ़- छुईखदान-गंडई, राजनांदगांव, मोहला- मानपुर-अंबागढ़ चौकी, बस्तर और सुकमा जिलों में एक-दो स्थानों पर भारी वर्षा होने की संभावना है.

ऑरेंज अलर्ट: प्रदेश के कोंडागांव, दंतेवाड़ा, कांकेर, बीजापुर और नारायणपुर जिलों में एक-दो स्थानों पर अति भारी वर्षा होने की संभावना है.

इसके साथ ही भारी से अति भारी वर्षा से सबरी, इंद्रावती और गोदावरी नदियों के घाटियों में बाढ़ की संभावना जताई गई है. जलभराव की स्थिति की वजह से NH63 और NH30 के कुछ हिस्सों पर बंद हो सकती है. यातायात और स्थानीय ढांचे पर भी प्रभाव हो सकता है. यहां तक कि कच्ची सड़के और कमजोर ढांचे क्षतिग्रस्त हो सकते है.

श्याम बाई ने मुर्गी पालन को बनाया अपना स्व-रोजगार

रायपुर-  प्रदेश की महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के सुशासन में सार्थक पहल हो रही है। छत्तीसगढ़ शासन द्वारा लघु एवं कुटीर उद्योगों बढ़ावा दिया जा रहा है, ताकि अधिक महिलाएं उद्योग से जुड़ सके। महिलाएं विभिन्न आजीविका मूलक गतिविधियों से जुड़कर आत्मनिर्भर बन रही है। आधुनिक समय के साथ-साथ महिलाएं भी अपनी रूचि को स्व-रोजगार का साधन बनाकर सशक्त हो रही है।

जिला जांजगीर-चांपा से 33 किलोमीटर दूर हैै ग्राम पंचायत मेऊ की श्यामबाई टंडन अपनी जमीन पर खेती करके और मुर्गी पालन अपनाकर अपने परिवार के साथ सुखमय जीवन व्यतित कर रही है। श्यामबाई ने बताया कि 2004 में उनके पति भारत टंडन की मृत्यु हो जाने के बाद परिवार की पूरी जिम्मेदारी उनके ऊपर आ गई। उनके पति के रहते ही उन्होंने दोनों लड़कियों की शादी करके अपनी जिम्मेदारी पूरी कर दी थी, लेकिन उनके ऊपर अपनी स्वयं एवं परिवार की जिम्मेदारी थी, ऐसे में उन्होंने हौंसला नहीं छोड़ा और मजबूती के साथ वह अपने पैरों पर खड़ी हुई। उनके पास महज 92 डिसमिल खेती की जमीन है जिस पर वह परंपरागत खेती करती है और उसे बहुत ही कम आय हो रही थी।

श्याम बाई ने अतिरिक्त आमदनी के लिए मुर्गी पालन को भी व्यवसाय के रूप में अपनाया। इससे उनको अच्छी आमदनी हो रही है। छत्तीसगढ़ शासन के अंतर्गत मनरेगा योजना से उनके घर में मुर्गीपालन के लिए शेड बनाकर दिया गया है। श्यामबाई ने बताया कि मुर्गीपालन से उन्हें प्रतिमाह 7 से 8 हजार रूपए की आमदनी हो जाती है। उन्होंने स्व-रोजगार कर मुर्गी पालन से आत्मनिर्भर बन गई और दूसरों के सामने उसे हाथ फैलानी नहीं पड़ रही है। उन्होंने मुर्गी शेड निर्माण के लिए छत्तीसगढ़ शासन का आभार जताया है।

अचानकमार टाइगर रिजर्व में अतिक्रमण, समझाइश देने गांव पहुंचा वन अमला, ग्रामीणों ने कहा – वन अधिकार पट्टों की हो निष्पक्ष जांच
लोरमी-    मुंगेली जिले के लोरमी क्षेत्र के वनांचल इलाकाें में अतिक्रमणक लगातार जारी है. खुड़िया वन क्षेत्र के जंगलों में आए दिन अतिक्रमण की शिकायत मिलती रहती है, जिसकी बू अब ATR के जंगलों तक पहुंच गई है. आज मुंगेली जिले में अचानकमार टाइगर रिजर्व अंतर्गत ग्राम महामाई में अतिक्रमण की रोकथाम के लिए बैठक आयोजित कर ग्रामीणों को समझाइश दी गई. इस दौरान सभी वन अधिकार पट्टों का निष्पक्ष जांच करने का निर्णय लिया गया.

बैठक में वन, राजस्व और पुलिस विभाग के संयुक्त टीम की उपस्थित रही. जानकारी के अनुसार अचानकमार टाइगर रिजर्व के वन परिक्षेत्र सुरही के महामाई बीट के 447आरएफ में जानबूझकर सामूहिक अतिक्रमण का प्रयास कुछ लोगों लगातार किया जा रहा है. वन विभाग इस पर रोक लगाने लगातार गांव में बैठक लेकर अतिक्रमण नहीं करने की समझाइस दे रही है और जेएफएमसी सदस्यों के साथ अतिक्रमण रोकथाम करने निरंतर प्रयास किया जा रहा है. आज एसडीएम जीएल यादव, एसडीओपी माधुरी धिरही और सहायक संचालक(कोर) संजय लूथर के नेतृत्व में ग्राम महामाई के ग्रामीणों के साथ बैठक की गई. बैठक में ग्रामीणों को अतिक्रमण नहीं करने, वनों और वन्यप्राणियों की सुरक्षा करने और आपस में मिलकर सहयोग से समस्याओं को सुलझाने की अपील की गई. किसी भी प्रकार के अवैध कार्यों की सूचना उपलब्ध कराने और उनकी रोकथाम में सहयोग देने का आग्रह किया गया.

बैठक में सर्वसम्मति से ग्रामीणों ने निर्णय लिया कि 447 आरएफ में जारी सभी वन अधिकार पट्टों का निष्पक्ष जांच किया जाएगा. इसके लिए अतिक्रमण में लिप्त लोगों की सूची ग्रामीणों द्वारा दी जाएगी. साथ ही जिन भी वन अधिकार पट्टों में कक्ष क्रमांक को लेकर विवाद है ,उनका नियमानुसार जांच करने के बाद ही आरोपित भूमि में कृषि कार्य किया जाएगा, तब तक के लिए यथा स्थिति बनाए रखने और आरोपित भूमि में किसी भी प्रकार की गतिविधि नहीं करने का निर्णय लिया गया.

बैठक का आयोजन मुख्य वन संरक्षक(वन्यप्राणी) मनोज पांडे, जिला कलेक्टर राहुल देव, पुलिस अधीक्षक गिरिजाशंकर जयसवाल एवम डिप्टी डायरेक्टर यू आर गणेश के मार्गदर्शन और निर्देशन में किया गया. इस दौरान सहायक संचालक (बफर) मानवेंद्र कुमार, परिक्षेत्र अधिकारी विक्रांत कुमार, विजय साहू , परिक्षेत्र सहायक दिलीप उपाध्याय एवं सुरही तथा लोरमी बफर के परिक्षेत्र सहायक, परिसर रक्षक, पैदल गार्ड सहित बड़ी संख्या में ग्रामीण उपस्थित रहे।
भू-स्वामियों के पटवारी रिकार्ड में दर्ज त्रुटियों का सुधार करेंगे तहसीलदार
रायपुर- राज्य के भू-स्वामियों को पटवारी रिकार्ड में त्रुटियों में सुधार के लिए भटकना नहीं पड़ेगा। राजस्व मंत्री टंक राम वर्मा की पहल पर राजस्व विभाग ने भू-स्वामियों की सुविधाओं को ध्यान में रखते हुए अब पटवारी रिकार्ड में दर्ज त्रुटियों का निराकरण करने के लिए तहसीलदारों को अधिकृत किया है। पूर्व में अनुविभागीय अधिकारी राजस्व को भू-स्वामियों के पटवारी रिकार्ड के त्रुटियों को निराकृत करने के लिए प्राधिकृत किया गया था।

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की मंशानुरूप राजस्व रिकार्ड में त्रुटि सुधार के अभ्यावेदन पर त्वरित कार्यवाही की जाएगी और इसके लिए तहसीलदारों को जिम्मेदारी सौंपी गई है। छत्तीसगढ़ राज पत्र में प्रकाशित अधिसूचना के अनुसार विशेष सचिव राजस्व एवं आपदा प्रबंधन ने छत्तीसगढ़ भू-राजस्व संहिता, 1959 (क्र. 20 सन् 1959) की धारा 24 की उप-धारा (1) द्वारा प्रदत्त शक्तियों को प्रयोग में लाते हुए, राज्य सरकार द्वारा उक्त संहिता की धारा 115 के अधीन तहसीलदार को भूमि स्वामी उसके पिता, पति के नाम, उपनाम, जाति, पते में लिपिकीय त्रुटि सुधार करने अधिकृत किया गया है। इसी प्रकार राजस्व रिकार्ड में कैफियत कॉलम में की गई त्रुटिपूर्ण प्रविष्टि में सुधार करना, त्रुटिवश जोड़े गये खसरों को पृथक करना, भूमि के सिंचित, असिंचित होने संबंधी प्रविष्टि में सुधार करना, भूमि के एक फसली तथा बहु फसली की प्रविष्टि में त्रुटि सुधार करने के लिए तहसीलदार को अधिकृत किया गया है।
कांग्रेस 24 जुलाई को करेगी विधानसभा का घेराव, पीसीसी चीफ बैज ने प्रदेशस्तरीय नियंत्रण कक्ष का किया गठन, जानिए किसे मिली क्या जिम्मेदारी …

रायपुर-    प्रदेश की लचर कानून-व्यवस्था, अपहरण, लूट-पाट, हत्या और विगत दिनों बलौदाबाजार हिंसा के विरोध में 24 जुलाई को कांग्रेस विधानसभा का घेराव करेगी. इस कार्यक्रम के लिए पीसीसी चीफ अध्यक्ष दीपक बैज ने प्रदेशस्तरीय नियंत्रण कक्ष का गठन किया है. प्रदेशस्तरीय नियंत्रण कक्ष का प्रभारी शैलेश नितिन त्रिवेदी को बनाया गया है. इसके साथ ही सह-प्रभारी और सदस्य की भी नियुक्ति की गई है.

 

राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020: चार वर्ष पूरे होने के अवसर पर ‘‘शिक्षा सप्ताह’’ का होगा आयोजन

रायपुर-   राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के चार वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 की मूल भावना को जन-जन तक पहुंचाने के लिए पूरे देश में सभी शासकीय, अनुदान प्राप्त एवं निजी स्कूलों में एक सप्ताह तक ‘शिक्षा सप्ताह’ का आयोजन किया जा रहा है। इस तारतम्य में 22 जुलाई से शिक्षा सप्ताह मनाने छत्तीसगढ़ शासन स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा समस्त जिला कलेक्टरों को निर्देश जारी किए गए हैं।

जारी परिपत्र द्वारा जिले के समस्त शालाओं में दिवसवार गतिविधियां कराने के निर्देश दिए है, जिसमें पहला दिवस 22 जुलाई सोमवार को टीएलएम दिवस- शिक्षकों को स्थानीय सामग्री के प्रदर्शन एवं कक्षा में इनके उपयोग हेतु प्रोत्साहित किया जाता है। इसी प्रकार दूसरा दिवस 23 जुलाई मंगलवार को एफएलएन दिवस- एफएलएन के क्रियान्वयन हेतु सभी हितधारकों के मध्य जागरुकता विकसित करना, तीसरा दिन 24 जुलाई बुधवार को खेल दिवस- खेल और फिटनेस के महत्व हेतु प्रतियोगिताओं का आयोजन करना, चतुर्थ दिवस 25 जुलाई गुरुवार को सांस्कृतिक दिवस- विद्यार्थियों में विविधता में एकता की भावना विकसित करने विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रम किया जाएं, पांचवा दिवस 26 जुलाई शुक्रवार को कौशल एवं डिजिटल पहल दिवस- विभिन्न कौशलों को बढ़ावा देना, सीखने में डिजिटल पहल को प्रोत्साहित करना, छठवां दिवस 27 जुलाई शनिवार को मिशन लाइफ/इको क्लब दिवस स्कूलों में इको क्लब का गठन, एक पेड़ मां के नाम का आयोजन, स्कूलों में वृक्षारोपण और सातवाँ दिवस 28 जुलाई रविवार को सामुदायिक भागीदारी दिवस- स्थानीय समुदाय, जन-प्रतिनिधि, पालक, एस.एम.सी., पीटीए, पंचायती राज संस्थाओं से मिलकर अधिकतम भागीदारी, न्यौता भोज कराने का निर्देश दिया गया है।

कार्यक्रम के अंतिम दिवस सभी शालाओं में न्यौता भोज के आयोजन के साथ-साथ उल्लास कार्यक्रम में जुड़ने संबंधी शपथ भी दिलाई जाएगी।

रायपुर में खाद्य-औषधि विभाग की छापेमारी, KFC से 100 लीटर रियूज्ड ऑयल जब्त
रायपुर- रायपुर में शुक्रवार रात फूड एंड ड्रग डिपार्टमेंट की टीम ने मैग्नेटो मॉल और सिटी सेंटर मॉल में चल रहे फूड आउटलेंट पर छापेमारी की। मैग्नेटो मॉल में संचालित KFC में कई बार यूज किए गए फ्राइड ऑयल का इस्तेमाल किया जा रहा था। इसके साथ ही वेज और नॉन वेज आईडेंटिफिकेशन नहीं पाया गया, लिहाजा नोटिस जारी किया गया है।

वहीं, सिटी सेंटर मॉल पंडरी में संचालित पिज्जा हट में वेज और नॉनवेज फूड को एक ही फ्रीजर में रखा जा रहा था। इसके साथ ही किसी प्रमाणित एजेंसी से पेस्ट कंट्रोल नहीं कराया गया था, जिस पर अधिकारियों की टीम ने नोटिस जारी किया है।

KFC से 100 लीटर रियूज्ड ऑयल जब्त

डिपार्टमेंट के अधिकारियों ने KFC के आउटलेट में इस्तेमाल किए जाने वाला करीब 100 लीटर फूड ऑयल जब्त किया है। जांच के दौरान टीम ने पाया कि खाद्य पदार्थों को फ्राई करने के लिए जिस ऑयल का इस्तेमाल किया जा रहा है, वह पहले से ही कई बार यूज किया जा चुका है। तेल का TPM (Total Polar Material) जांच में 30% से ज्यादा पाया गया है। अधिकारियों ने बताया कि FSSAI की ओर से तय अधिकतम मात्रा 25% है। ऐसे में तेल का सैंपल कलेक्ट कर जांच के लिए भेजा गया है। वहीं, सेलिंग काउंटर में वेज और नॉन वेज आइडेंटिफिकेशन नहीं पाए जाने पर नोटिस जारी किया गया है।

पिज्जा हट में एक ही फ्रीजर में वेज-नॉनवेज फूड

सिटी सेंटर मॉल में संचालित पिज्जा हट में टीम ने पाया कि वेज और नॉनवेज फूड को एक ही फ्रीजर रखा जा रहा है। जबकि नियम के अनुसार दोनों के लिए अलग-अलग फ्रीजर होने चाहिए थे। वहीं शॉप में प्रमाणित एजेंसी से पेस्ट कंट्रोल प्रोग्राम नहीं करवाने और काम करने वाले कर्मचारियों की मेडिकल जांच रिपोर्ट नहीं होने पर 14 दिन में इम्प्रूवमेंट के लिए नोटिस जारी किया गया है।

मोमोज अड्डा में 4 किलो एक्सपायरी आटा

शुक्रवार को फूड एंड ड्रग डिपार्टमेंट ने मोमोज अड्डा में कार्रवाई के दौरान 4 किलो एक्सपायरी सूजी आटा मिला है। साथ ही मोमोज के लिए मैदे में गंदगी पाए जाने पर लगभग 25 किलोग्राम मैदा डस्टबिन में फेंका गया। जांच के लिए सैंपल भी भेजा गया है। फूड रजिस्ट्रेशन नहीं पाए जाने पर टीम ने दुकान को बंद रखने को कहा है।

सफलता की कहानी - विशेष पिछड़ी जनजातियों को मिल रहे पक्के आवास, मंगलूराम के परिवार ने खुशी-खुशी, पूजन कर किया गृह प्रवेश
रायपुर-  छत्तीसगढ़ में पीएम जनमन योजना का तेजी से क्रियान्वयन हो रहा है। विशेष पिछड़ी जनजाति बहुल गांवों में ऐसे परिवारों को आवास सहित मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही है। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने विशेष पिछड़ी जनजाति परिवारों के लिए संचालित पीएम जनमन योजना के तहत इन समुदायों से जुड़ी बसाहटों में सड़क, बिजली, आवास, पेयजल सहित सभी प्रमुख योजनाओं का लाभ इन परिवारों को दिए जाने के निर्देश दिए हैं।
इसी कड़ी में कोरबा जिला प्रशासन द्वारा विशेष पिछड़ी जनजातियों के लिए 650 आवास स्वीकृत हुए हैं जिसमें से 518 हितग्राहियों को प्रथम किश्त जारी की जा चुकी है। 135 हितग्राहियों को द्वितीय किश्त तथा 17 हितग्राहियों को तृतीय किश्त की राशि जारी की जा चुकी है। पाली विकासखंड के ग्राम पंचायत भंडारखोल में विशेष पिछड़ी जनजाति बिरहोर वर्ग के हितग्राही मंगलूराम के द्वारा जिले का प्रथम आवास पूर्ण कर लिया गया है। शुक्रवार को मंगलूराम ने अपने परिवार सहित विधिवत पूजन करके जनमन आवास में गृह प्रवेश किया। अपने स्वयं का पक्का आशियाना पा कर उसके परिजनों ने खुशी जाहिर की है।

गौरतलब है कि प्रधानमंत्री जनमन योजना के तहत आवास के लिए पीवीटीजी हितग्राही को पक्के आवास बनाने के लिए 2 लाख रुपये की राशि शासन द्वारा 4 किश्तों में दी जा रही है। इसके साथ ही हितग्राहियों को महात्मा गांधी नरेगा योजना के तहत 90 मानव दिवस की मजदूरी का लाभ भी दिया जा रहा है। जिले में 20 जनमन आवास का निर्माण छत स्तर तक पहुँच गया है।
स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने जशपुर जिला चिकित्सालय का किया निरीक्षण

रायपुर-     स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने आज जशपुर जिले के प्रवास के दौरान राजा देवशरण जिला चिकित्सालय का निरीक्षण किया। उन्होंने विभिन्न वार्डों में जाकर भर्ती मरीजों का हालचाल पूछा और जिला चिकित्सालय में उपलब्ध चिकित्सा सुविधा जांच उपकरणों एवं दवाओं की जानकारी ली। उन्होंने सुरक्षित एवं संस्थागत प्रसव कराने के साथ ही अस्पताल की रख-रखाव एवं स्वच्छता के लिए मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी को निर्देश दिए। उन्होंने सीटी स्कैन, पोषण पुनर्वास केंद्र, पंजीयन कक्ष, ओपीडी कक्ष, कैंसर वार्ड, आईसीयू वार्ड, पोस्ट पेशेंट वार्ड, खून जांच लैब, मातृ शिशु स्वास्थ्य कक्ष का निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने सभी कक्ष में सीलिंग फॉल लगाने हेतु प्राक्कलन बनाने के निर्देश दिए।

स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री श्री जायसवाल ने आयुष्मान कार्ड समय पर बनाने कहा जिससे अधिक से अधिक लोगों को इसका लाभ मिल सके। उन्होंने डॉक्टरों, नर्सों से बातचीत कर निरंतर बेहतर चिकित्सा सेवा देने प्रोत्साहित किया। इस दौरान उन्होंने स्वास्थ्य सफाई कर्मियों से भी बातचीत की। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि बेहतर चिकित्सा सुविधा के लिए जिला अस्पताल में डॉक्टरों, नर्सों की जरूरत है आवश्यकता के अनुसार सभी सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएगी और विशेषज्ञ डॉक्टरों की भर्ती भी की जाएगी। ऑक्सीजन प्लांट की रिपेयरिंग कराई जाएगी इसके लिए अस्पताल प्रबंधन एवं जिला प्रशासन को सभी आवश्यकताओं का प्राक्कलन बनाकर प्रस्तुत करने की निर्देश दिए। उन्होंने निरीक्षण के दौरान अस्पताल परिसर, वार्ड, शौचालय को साफ सफाई की व्यवस्था दुरुस्त रखने के निर्देश दिए ।

अब राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के संविदा कर्मी आंदोलन की राह पर, 22 और 23 जुलाई को करेंगे हड़ताल…

रायपुर-    मुख्यमंत्री से लेकर बड़े नेताओं को ज्ञापन देने के बाद भी सुनवाई नहीं होने से व्यथित राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन तथा एड्स नियंत्रण कार्यक्रम के संविदा कर्मचारी हड़ताल पर जा रहे हैं. 22 और 23 जुलाई को इन संविदा कर्मचारियों की हड़ताल से प्रदेश में स्वास्थ्य व्यवस्था बिगड़ने के आसार हैं.

छत्तीसगढ़ प्रदेश एनएचएम कर्मचारी संघ के प्रांताध्यक्ष डॉ अमित कुमार मिरी ने बताया कि विधानसभा चुनाव के बाद प्रदेश में नई सरकार के गठन के बाद से राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन तथा एड्स नियंत्रण कार्यक्रम के संविदा कर्मचारियों द्वारा अपनी माँगों को लेकर मुख्यमंत्री, विधानसभा अध्यक्ष, उप मुख्यमंत्री, स्वास्थ्य मंत्री, वित्त मंत्री सहित तमाम सांसदों और विधायकों से मिल कर ज्ञापन दिया गया था. लेकिन कोई सुनवाई नहीं होने पर विवश होकर ध्यानाकर्षण के लिए 22 और 23 जुलाई को रायपुर में हड़ताल करने का निर्णय लिया है.

इन सेवाओं पर पड़ेगा असर

एनएचएम और एड्स नियंत्रण मिशन से लगभग 16 हज़ार से ज्यादा डॉक्टर, नर्स, पैरा मेडिकल व प्रबंधकीय संवर्ग के कर्मचारी जुड़े हुए हैं. हड़ताल की वजह से इनके काम पर नहीं रहने से मरीजों के परीक्षण, जांच, दवाई, जन्म-मृत्यु पंजीयन, पोषण पुनर्वास, टीकाकरण सहित टीबी, मलेरिया, आयुष्मान कार्ड जैसी सेवाएं प्रभावित होंगी. इसके अलावा प्रदेश में डायरिया, मलेरिया का प्रकोप चरम पर है, ऐसे में स्वास्थ्य सेवाओं के पटरी से उतरने पर लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है.

आवेदन, निवेदन, ज्ञापन से नहीं बनी बात

छत्तीसगढ़ प्रदेश एनएचएम कर्मचारी संघ के प्रांताध्यक्ष डॉ अमित कुमार मिरी ने बताया कि काम कर रहे कर्मचारी मानव संसाधन नीति 2018 से शासित होते हैं. समय के साथ नियमों में बदलाव की आवश्यकता है. नियमितिकरण सहित कुल 18 बिंदु मांग तथा गत वर्ष जुलाई में घोषित 27 प्रतिशत वेतन वृद्धि को लेकर मुख्यमंत्री से लेकर स्वास्थ्य मंत्री, वित्त मंत्री सहित तमाम बड़े मंत्रियों को अवगत कराया जा चुका है, लेकिन अब तक कार्रवाई नहीं होने की वजह से हड़ताल किया जा रहा है, जिसकी सूचना उच्च स्तर पर भी दे दी गई है.

अनुपूरक बजट सत्र घोषणा के बाद पालन नहीं

प्रदेश अध्यक्ष के अनुसार कार्य कर रहे कर्मचारियों के लिए अनुपूरक बजट सत्र 2023 में 27 प्रतिशत वेतन वृद्धि की घोषणा सदन में की गई थी, जिसके लिए 350 करोड़ का बजट रखा गया था. कई अन्य विभागों में वह प्राप्त भी हो चुका है, लेकिन आज तक एनएचएम तथा एड्स नियंत्रण कार्यक्रम के कर्मचारियों को इसका लाभ नहीं मिला है. अल्प वेतन में काम कर रहे कर्मचारियों को घोषित वेतन वृध्दि का लाभ न देना यह सरकार की नीयत पर संदेह पैदा करता है.

ये है प्रमुख मांगें

18 बिंदु माँगों में नियमितिकरण, लंबित 27 प्रतिशत वेतन वृद्धि, ग्रेड पे निर्धारण, वेतन विसंगति निराकरण, सीआर व्यवस्था में सुधार, चिकित्सा परिचर्या, अवकाश नियम में बदलाव, अनुकंपा नियुक्ति और अनुदान में राशि मे वृद्धि, सेवा पुस्तिका संधारण, तबादला व्यवस्था में नियमितता जैसी प्रमुख मांगें सम्मिलित हैं.