हेमंत सोरेन के बयान पर बिफरे मुख्यमंत्री साय, कहा- आदिवासी समाज का न करें अपमान…

रायपुर-  मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को उस बयान पर आड़े हाथों लिया है, जिसमें उसने भाजपा शासित राज्यों के आदिवासी मुख्यमंत्रियों को रबर स्टाम्प बताया है. सोरेन के इस बयान पर मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने पलटवार करते हुए सोरेन परिवार को जनता को लूटकर गाढ़ी कमाई करने वाला परिवार कहा है. 

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने अपने सोशल मीडिया हैंडल X में लिखा है कि देश भर में जिस तरह से भाजपा, सक्षम आदिवासी नेतृत्व दे रही है, ऐसा इससे पहले कभी नहीं था. ऐसे में झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन का आदिवासी मुख्यमंत्रियों के बारे में अनर्गल प्रलाप निंदनीय है. यह देश भर के आदिवासी और पिछड़े समाज का अपमान है. जीवन भर अपने कृत्यों से सोरेन परिवार जिस तरह आदिवासी समाज को बदनाम करता रहा है, वह भी निंदनीय है.

साय ने कहा कि जनता की गाढ़ी कमाई लूटकर अपनी तिजोरी भरने वाले सोरेन और उनकी पार्टी को आगामी विधानसभा चुनाव में झारखंड की जनता सबक सिखाने का मन बना चुकी है. यही कारण है कि अब वे समाज के प्रति ही अनाप-शनाप बयानबाजी पर उतारू हो गये हैं. सोरेन परिवार के रिश्वत कांड को भी अभी तक जनता भूली नहीं है. हेमंत सोरेन को यह समझ लेना चाहिए कि महज जमानत मिल जाना अपराध मुक्ति का सर्टिफिकेट नहीं होता है. अंतिम फैसला अभी बाकी है.

उन्होंने कहा कि दरअसल आदिवासियों, अनुसूचित जातियों, अन्य पिछड़ा वर्ग, महिलाओं और युवाओं के बीच भाजपा की बढ़ती लोकप्रियता से इंडी गठबंधन घबराया हुआ है. इसी कारण ऐसी बयानबाजी हो रही है. समाज को अपमानित करने वाले किसी भी बयान को जनता सहन नहीं करेगी, इसका माकूल जवाब देगी.

इसके साथ ही मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय पीएम मोदी की ‘मन की बात’ को लेकर कहा कि प्रधानमंत्री ने मन की बात में “मां की बात” की है. लोगों से “एक पेड़ मां के नाम” लगाने का आह्वान किया है. सभी लोग अपनी मां के नाम पर एक पेड़ लगाएं. जिनकी मां है, वे मां के साथ पेड़ लगाएं. जिनकी मां नहीं हैं वे स्वर्गवासी मां की तस्वीर रखकर पेड़ लगाएं. हम पूरे देशवासी एक-एक पेड़ लगाएंगे, तो प्रकृति संवर जाएगी.

एक जुलाई को मिलेगी ‘महतारी वंदन’ की किस्त

एक जुलाई को महतारी वंदन योजना की पांचवी किस्त जारी होगी. मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा कि महतारी वंदन योजना की पांचवी किस्त कल मिलेगी. 70 लाख से ज्यादा महिलाओं को इसकी राशि मिलेगी. महिलाओं को प्रतिमाह 1000 रुपए मिल रहा है.

दिव्यांगों के लिए हर संभव मदद की जाएगी: मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय

रायपुर-   मुख्यमंत्री विष्णु देव साय आज यहां जैन दादा बाडी एमजी रोड में नारायण सेवा संस्थान द्वारा आयोजित विशाल निःशुल्क नारायण लिम्ब एवं कैलिपर्स फिटमेंट शिविर में शामिल हुए। संस्थान ने इस शिविर में छत्तीसगढ़ प्रदेश के रायपुर तथा विभिन्न जिलों से आए 750 से ज्यादा दिव्यांगों को अपर-लोवर लिंब और केलिपर्स लगाकर उनकी रुकी जिंदगी को फिर से शुरू कर दी। इन दिव्यांगों और परिजनों की खुशी हर किसी के मन को छूने वाली थी। आज एक ही दिन में एक ही जगह पर 750 से ज्यादा दिव्यांग नारायण लिम्ब पहनकर मुस्कुराते हुए चले। जो वर्षों पहले किसी दुर्घटना में अपने हाथ-पैर गंवाने से चलने-फिरने में असमर्थ हो चुके थे। जिसके चलते इनकी जिंदगी रुक सी गई थी। इन्हें आज लोवर लिंब, अपर लिंब, मल्टिपल लिंब और केलिपर्स लगाए गए।

शिविर का उद्घाटन मुख्यमंत्री विष्णु देव साय तथा अन्य अतिथियों द्वारा दीप प्रज्ज्वलित कर किया गया। इस मौके पर खेल एवं युवा कल्याण मंत्री टंकराम वर्मा, विधायक पुरंदर मिश्रा, मोती लाल साहू और अनुज शर्मा, दिव्यांगों, उनके परिजनों सहित कई सम्मानीय दानी जन मौजूद थे।

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने मुख्य अतिथि की आसंदी से कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि राजस्थान से चलकर छत्तीसगढ़ के दिव्यांगों की मदद के लिए आगे आयी इस संस्थान की भावना का मैं हार्दिक अभिनंदन करता हूँ। उन्होंने संस्थान के संस्थापक कैलाश जी मानव व अध्यक्ष प्रशांत अग्रवाल का इस भव्य मानव यज्ञ के लिए आभार प्रकट करते हुए राज्य सरकार की ओर से संस्थान को दिव्यांगों के लिए हर संभव मदद का भरोसा दिलाया।

कार्यक्रम के प्रारम्भ में संस्थान द्वारा मुख्य अतिथि सहित सभी अतिथियों का मेवाड़ी परंपरा से सत्कार किया गया। संस्थान के प्रतिनिधियों द्वारा मानवता की सेवा के अपनी 39 वर्षीय यात्रा की जानकारी देते हुए आगामी 5 वर्ष का विजन प्रस्तुत किया गया। संस्थान द्वारा बताया गया कि हमने दिव्यांगजनों को उनके घरों के पास ही लाभान्वित करने की सोच को साकार करते हुए 7 अप्रैल को रायपुर में कैंप लगाया था। आज उन्हें जरूरी उपकरण मुख्यमंत्री जी के हाथों उपलब्ध कराए जा रहे हैं।

नारायण सेवा संस्था के अध्यक्ष प्रशांत अग्रवाल ने संकल्प रखा की वे आने वाले दिनों में छत्तीसगढ़ के दिव्यांगों को लाभान्वित करने के लिए रायपुर में केंद्र संचालित करना चाहते हैं। मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि नारायण सेवा संस्थान द्वारा केंद्र स्थापना के लिए उन्हें हर संभव मदद दी जाएगी। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने छत्तीसगढ़ के रायपुर तथा विभिन्न जिले से आए दिव्यांगों जिनके कृत्रिम हाथ पैर लगे उनसे मिलकर उन्हें शुभकामनाएं देते हुए उनके उज्जवल भविष्य की कामना की। मुख्यमंत्री ने कहा कि दिव्यांगों को समाज की मुख्य धारा में लाने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी जाएगी।

शिविर में स्थानीय संगठन भगवान महावीर जन्म कल्याणक, श्री ऋषभदेव मन्दिर, दादाबाड़ी रायपुर, भारतीय जैन संगठना, श्री दिगम्बर जैन सोशल ग्रुप, जय आनन्द युवा संघ, रायपुर केरला समाजम, आरोग्य हॉस्पिटल शंकरनगर, राजश्री चायपत्ती, राजश्री इंटरप्राइजेज, श्री श्याम सेवाधारी महिला समिति, सत्यनारायण धर्मशाला, महिला पतंजली योग समिति, छत्तीसगढ़ प्रान्तीय महिला अग्रवाल संगठन, श्री मानव सेवा मंगल भवन, छत्तीसगढ़ गोंड समाज कल्याण समिति, छत्तीसगढ़ प्रदेश साहू संघ, अग्रवाल सभा, छत्तीसगढ़ सर्व नाई समाज, मां खारुन गंगा महाआरती महादेव घाट, राणाजी वेलफेयर फाउंडेशन, श्री मंगलमय, अखंड ब्राह्मण समाज सेवा समिति छत्तीसगढ़, नवसृजन मंच छत्तीसगढ़, वसुधैव कुटुंबकम, सार्थक क्रिएटिव ऑर्गनाइजेशन, छत्तीसगढ प्रदेश स्वास्थ्य नर्सिंग संगठन, स्पर्श एक कोशिश वेलफेयर फाउंडेशन, श्रीराम जी की सेना, ऊँ मण्डली, मणिकार्णिका विंग शिविर में शामिल हुए। इस अवसर पर शिविर की रिपोर्ट में बताया गया कि आज एक ही दिन में एक ही जगह पर 750 से ज्यादा दिव्यांग नारायण लिम्ब पहनकर मुस्कुराते हुए चले। जो वर्षों पहले किसी दुर्घटना में अपने हाथ-पैर गंवाने से चलने-फिरने में असमर्थ हो चुके थे। जिसके चलते इनकी जिंदगी रुक सी गई थी। इन्हें आज लोवर लिंब, अपर लिंब, मल्टिपल लिंब और केलिपर्स लगाए गए। संस्थान की 80 जनों की टीम ने सेवाएं दी। समारोह में वॉलिंटर ने निशुल्क सेवाएं दी जिन्हें संस्थान ने प्रमाण पत्र दिये।

कांग्रेसियों ने चैतन्य टेक्नो स्कूल के खिलाफ थाने में की शिकायत, CBSE स्कूल के नाम पर पालकों को ठगने का लगाया आरोप

रायपुर-  कांग्रेसियों ने रायपुर के चैतन्य टेक्नो स्कूल पर सीबीएसई स्कूल के नाम पर लाखों पालकों को ठगने का आरोप लगाया है. इसकी शिकायत सीएसपी से की है और सूक्ष्म जांच कर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है. कांग्रेसी नेताओं का कहना है कि, मान्यता के नाम छत्तीसगढ़ में बड़ा गोरख धंधा चल रहा है. जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय रायपुर ने बिना डीईओ के हस्ताक्षर के चैतन्य टेक्नो स्कूल के दो ब्रांच की मान्यता दी है. मान्यता सीजी बोर्ड का जारी हुआ है और चैतन्य टेक्नो स्कूल सीबीएसई स्कूल की पढ़ाई करवा रहा है. कांग्रेसियों ने जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय के अधिकारियों पर जुर्म दर्ज करने की मांग की है.

शिकायत में बताया गया है कि चैतन्य टेक्नो स्कूल में नौ सौ से ज्यादा छात्र अध्ययनरत हैं, जिन्हें सीबीएसई की मान्यता होना बता कर लाखों रुपए फीस अवैध रूप से वसूला जा रहा है. जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय में मान्यता के नाम पर करोड़ों रुपए की अवैध उगाही की जा रही है. नियम विरुद्ध मान्यता प्रदान किया जा रहा है. कांग्रेस प्रवक्ता विकास तिवारी भी चैतन्य स्कूल के ठगी का शिकार हुए हैं. उनके दोनों बच्चों को सीबीएसई स्कूल के नाम पर ठगा गया.

सीएसपी से शिकायत करने वालों में अल्पसंख्यक आयोग की सदस्य अमजद, प्रदेश महामंत्री हेमंत पाल , प्रदेश सचिव कुणाल दुबे, प्रदेश वाईस चेयरमैन पुनेश्वर लहरे, पूर्व विधानसभा अध्यक्ष विशाल मानिकपुरी, विधानसभा उपाध्यक्ष अंकित बंजारे , विधानसभा महासचिव तनिष्क मिश्रा, अजय यादव शामिल थे.

शिकायत में यह भी बताया गया है कि फर्जी प्रमाण-पत्र से यह भी स्पष्ट होता है कि विद्यालय को नर्सरी से कक्षा-8वी तक अंग्रेजी माध्यम की छत्तीसगढ़ SCERT पाठ्यक्रम की शिक्षा देनी होगी, लेकिन अब भी यह विद्यालय CBSE के पाठयक्रम बोलकर किताबें विशिष्ट दुकान से खरीदवा रहा है. यही नहीं कक्षा-9वीं और आगे की गैर-मान्यता प्राप्त कक्षाएं उस परिसर में संचालित कर रहा है. एडमिशन और अन्य नाम से कैपिटेशन फीस भी वसूला जा रहा है. इन सबकी अनुमति देने का अधिकार जिला शिक्षा अधिकारी को भी नहीं है.

रेलमंत्री से मिले केंद्रीय राज्यमंत्री तोखन साहू, पेंड्रारोड से बिलासपुर के बीच ट्रेन स्टापेज फिर शुरू करने की रखी मांग

मुंगेली- बिलासपुर सांसद और केंद्रीय आवासन और शहरी कार्य राज्यमंत्री तोखन साहू ने रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव से मुलाकात कर क्षेत्र की रेल संबंधित समस्याओं से अवगत कराकर उसके निराकरण के लिए मांग की है.

दरअसल पेंड्रारोड से बिलासपुर (उसलापुर)के बीच करगीरोड कोटा,बेलगहना एवं टेंगनवाड़ा स्टॉपेज लंबे समय से बंद है, जिसके चलते क्षेत्र के यात्रियों को दिक्कतें तो हो ही रही है इसके साथ ही स्थानीय लोगों का रोजगार भी बुरी तरह से प्रभावित हो रहा है. यही वजह है कि उन्होंने इन स्टेशनों पर ट्रेन के स्टॉपेज सेवा पुनः बहाली करने की मांग क्षेत्रवासियों की मांग पर की है.

बता दें कि बिलासपुर लोकसभा क्षेत्र अंतर्गत करगीरोड, बेलगहना, टैगनमाड़ा रेलवे स्टेशन पर कोविड के समय से बंद गाड़ियों के स्टापेज पुनः चालू कराने के संबंध में अरुण सिंह चौहान जिला पंचायत अध्यक्ष बिलासपुर एवं क्षेत्र के भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ताओ ने इस समस्या से अवगत कराते हुए केंद्रीय राज्य मंत्री तोखन साहू से पत्र लिखकर मांग की थी. इसमें कहा गया था कि कोविड के समय से इन स्टॉपेज को बन्द कर दिया गया है. आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र होने के कारण आने-जाने का मुख्य साधन ट्रेन है. इन स्टेशनों पर स्टापेज बंद होने के कारण क्षेत्रीय कृषकों, व्यापारियों, छात्र-छात्राओं, जनप्रतिनिधियों, कर्मचारियों, अधिकारियों एवं आम जनता को काफी असुविधा हो रही है. यही वजह है कि केंद्रीय राज्य मंत्री तोखन साहू ने रेल मंत्री अश्वनी वैष्णव से मिलकर इस समस्या को दूर करने की मांग रखी.

इन गाड़ियों का स्टॉपेज बंद

इन प्रमुख रेलगाड़ियों का स्टेशनों पर स्टॉपेज बंद है. इसमें भोपाल-अमरकंटक सुपरफास्ट, पुरी-हरिद्वार उत्कल कलिंग एक्सप्रेस, बिलासपुर-भोपाल एक्सप्रेस, दुर्ग-अंबिकापुर एक्सप्रेस, दुर्ग-भोपाल-अमरकंटक सुपरफास्ट, सारनाथ एक्सप्रेस, बिलासपुर-इंदौर एक्सप्रेस, बिलासपुर-चिरमिरी आदि। इन गाड़ियों के नियमित ठहराव से इस क्षेत्र की जनता को आवागमन में काफी सहूलियत होगी।

साय कैबिनेट का विस्तार नहीं होने से चिंतित हुई कांग्रेस, पूर्व CM ने कहा- मंत्री पद रिक्‍त होने से छत्तीसगढ़ को हो रहा नुकसान

रायपुर- छत्तीसगढ़ में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय कैबिनेट के विस्तार को लेकर सभी की निगाहें टिकी हुई है। इस बीच दिल्ली से लौटे मुख्यमंत्री साय ने पत्रकारों से चर्चा में कहा कि समय मंत्रिमंडल का विस्तार हो जाएगा। मुख्यमंत्री के बयान के बाद पूर्व मुख्यमंत्री व कांग्रेस नेता भूपेश बघेल ने साय कैबिनेट को लेकर चिंता प्रकट की।

बघेल ने कहा कि विधानसभा का सत्र आहुत किया जा चुका है, लेकिन संसदीय कार्य मंत्री इस्तीफा दे चुके हैं। ऐसे में संसदीय कार्यमंत्री का होना विधानसभा में आवश्यक हो जाता है। हालांकि मंत्रिमंडल गठन करने का अधिकार मुख्यमंत्री का होता है, लेकिन अभी तक फ़ैसला नहीं हो पाया है।

इधर मुख्यमंत्री साय ने बताया कि नई दिल्ली में प्रवास के दौरान भाजपा के राष्ट्रीय संगठन महामंत्री बीएल संतोष राष्ट्रीय सह-संगठन महामंत्री शिवप्रकाश के साथ छत्तीसगढ़ के भाजपा सांसदों की परिचयात्मक बैठक में शामिल हुआ।

इसमें प्रदेश अध्यक्ष किरण सिंह देव, केंद्रीय राज्य मंत्री तोखन साहू समेत अन्य सांसद उपस्थित रहे। नीट मामले में एक प्रश्न पर सीएम साय ने कहा कि केंद्रीय शिक्षा मंत्री इस मामले में लगातार जांच कर कार्रवाई करने की बात कह रहे हैं।

मंत्रिमंडल और निगम-मंडलों में नियुक्ति को लेकर चर्चा

पार्टी सूत्रों के अनुसार दिल्ली में हुई बैठक में संगठन के कई अहम मुद्दों पर चर्चा हुई। साथ ही मंत्रिमंडल और निगम मंडल के विषय पर भी अनौपचारिक चर्चा हुई है। बतादें कि शिक्षा मंत्री बृजमोहन अग्रवाल के इस्तीफे के बाद साय कैबिनेट में मंत्री के दो पद रिक्त हो गए हैं। इसके बाद से प्रदेश में कई विधायक मंत्री के लिए दावेदार हैं।

इनमें रायपुर से राजेश मूणत, कुरूद विधायक अजय चंद्राकर, बिलासपुर से अमर अग्रवाल, पूर्व विधानसभा अध्यक्ष धरमलाल कौशिक, बस्तर से लता उसेंडी का नाम चर्चा में है। इसी तरह नए चेहरे में रायपुर से पुरंदर मिश्रा, दुर्ग से गजेंद्र यादव, पंडरिया विधायक भावना बोहरा, केशकाल विधायक नीलकंठ टेकाम, सीतापुर विधायक रामकुमार टोप्पो का नाम शामिल है।

भूपेश ने गिनाई मंत्री नहीं होने का नुकसान

साय मंत्रिमंडल विस्तार में देर पर पूर्व सीएम भूपेश बघेल ने कहा कि मंत्री के दो पद रिक्त हैं। निश्चित रूप से फैसला करने में विलंब हो रहा है, जिसका नुकसान छत्तीसगढ़ सरकार को भी हो रहा है। शिक्षा सत्र भी चल रहा है। संसदीय कार्य मंत्री दोनों ही पद रिक्त हैं, इन्हें भरा जाना चाहिए।

अयोध्या राम मंदिर में पानी के रिसाव पर भूपेश बघेल ने कहा कि भाजपा ने मंदिर के निर्माण में गुणवत्ता के साथ खिलवाड़ किया गया है। जिस तरह से जमीन खरीदी पर धांधली हुई थी, उसी प्रकार मंदिर पर भी अब धांधली नजर आ रही है। केवल मंदिर ही नहीं बल्कि बिहार में पुल और दिल्ली के एयरपोर्ट में हादसे ने बताया दिया कि भ्रष्टाचार किस स्तर पर हुआ है।

संसद में राहुल गांधी का माइक बंद होने पर भूपेश बघेल ने कहा, राहुल नीट का मुद्दा जोर-शोर से उठा रहे हैं। 26 लाख छात्रों के भविष्य का सवाल है, जिस प्रकार से घोटाला हुआ है और इस मामले को लेकर लोकसभा और राज्यसभा में राहुल गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे उठा रहे हैं, लेकिन उनकी माइक बंद कर दी जा रही है, उन्हें अनसुना कर दिया गया, यह लोकतंत्र की हत्या है।

पूर्व सीएम भूपेश बघेल ने टीम इंडिया की जीत पर दी बधाई, कहा- हम बन गए विश्व चैंपियन

रायपुर- भारत की टी20 विश्वकप में शानदार जीत पर पूर्व सीएम भूपेश बघेल ने टीम इंडिया को बधाई दी है. उन्होंने अपने संदेश में लिखा कि और हम बन गए विश्व चैंपियन. यह विराट विजय विश्व पटल पर स्वर्ण अक्षरों में सूर्य के समान चमक रही है. सभी को हार्दिक बधाई. जय हो! ज़िंदाबाद. जश्न मनाइए. हर हिंदुस्तानी की आंखे ख़ुशी के आंसुओं से नम है.

बता दें कि टी20 विश्व कप 2024 के फाइनल में टीम इंडिया ने साउथ अफ्रीका को 8 रनों से हराकर खिताब जीता और इतिहास रच दिया है. टी20 विश्व कप के इतिहास में भारत की ये दूसरी ट्रॉफी है. इससे पहले साल 2007 में भारतीय टीम महेंद्र सिंह धोनी की कप्तानी में चैंपियन बनी थी. अब रोहित शर्मा की कप्तानी में यह कमाल कर दिया है. टूर्नामेंट में पिछले 17 साल से भारत के लिए ट्रॉफी का सूखा थो अब खत्म हो गया है.

रचनात्मक डिजिटल मीडिया के लिए बड़ी संभावनाएं लेकिन इससे उपजी चुनौतियों से निपटने कारगर कदम उठाने भी जरूरी: के.जी. सुरेश

रायपुर-   पूरा विश्व पैंडेमिक की तरह इंफोडेमिक से भी जूझ रहा है। कई बार डिजिटल मीडिया के माध्यम से त्रुटिपूर्ण सूचनाएं, गलत तथ्यों को लेकर फैलाई जा रही सूचनाएं और तोड़ मरोड़ कर पेश की जाने वाली सूचनाओं से जो भ्रम फैलता है उससे समाज को काफी नुकसान पहुंचता है। यद्यपि डिजिटल मीडिया में रचनात्मकता के लिए बहुत संभावनाएं हैं। इससे उपजी चुनौतियों से निपटने कारगर कदम उठाये जाएं, राष्ट्रीय मीडिया साक्षरता अभियान चलाएं जाएं ताकि फेक न्यूज आदि से निपटा जा सके तो डिजिटल मीडिया हमारे समाज के लिए प्रभावी भूमिका निभा सकती है। यह बात नारद जयंती पर आयोजित देवऋषि नारद पत्रकारिता सम्मान के मौके पर माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता विश्वविद्यालय भोपाल के कुलपति के.जी. सुरेश ने डिजिटल क्रांति के समय पत्रकारिता विषय पर अपने संबोधन में की। इस मौके पर जनसंपर्क विभाग के आयुक्त मयंक श्रीवास्तव मुख्य अतिथि के रूप में मौजूद रहे।

इस अवसर पर देवर्षि नारद सम्मान से बीएस टीवी के ब्यूरो चीफ डॉ. अवधेश मिश्र, वरिष्ठ छायाकार भूपेश केशरवानी को स्वर्गीय रमेश नैयर सम्मान एवं वरिष्ठ पत्रकार भोलाराम सिन्हा को स्वर्गीय बबनप्रसाद मिश्र सम्मान से पुरस्कृत किया गया।

श्री सुरेश ने कहा कि जिस तरह वर्ष प्रतिपदा और गुरुपूर्णिमा को आयोजन होते हैं वैसे ही नारद जयंती के दिन भी आयोजन होना चाहिए। जब वर्ष प्रतिपदा कहते हैं तो वैसा ही सात्विक भाव मन में आता है जो न्यू ईयर के विचार में नहीं आता। हमें भारतीय परंपरा के अनुसार नारद जयंती के दिन पत्रकारों के लिए, पत्रकारों हेतु और पत्रकारों द्वारा आयोजन करना चाहिए। उपनिषद में जो निर्भीकता का भाव होता है, वैसा ही भाव देवर्षि नारद हमें सिखाए हैं। पत्रकार की सादगी उनसे सीख सकते हैं। उन्होंने लोककल्याण के लिए सूचना का संचार किया। त्रस्त प्रजा के समाचार देवताओं तक पहुंचाए इसलिए भगवत गीता में भगवान कृष्ण ने कहा है कि मैं ऋषियों में देवऋषि नारद हूँ।

डिजिटल मीडिया के सकारात्मक पक्षों के बारे में उन्होंने बताया कि पहले मीडिया सूचनाएं देता था, अब न्यू मीडिया फीडबैक भी देता है। मीडिया का लोकतांत्रिकीकरण हो गया है। इसके कारण डिजिटल मीडिया की ताकत बढ़ी है। सोशल मीडिया अब समाज को प्रभावित कर रहा है, दुनिया भर में कई बड़े आंदोलन खड़ा करने में डिजिटल मीडिया ने भूमिका निभाई। लेकिन डिजिटल मीडिया तभी प्रभावी है जब जमीन पर आंदोलन मजबूत हो। डिजिटल मीडिया के नाम पर कोई भी समाचार और विचार परोसा जा रहा है, लेकिन यह पत्रकारिता नहीं है। इस क्षेत्र में अनेक एक्टिविस्ट उतर आए हैं जबकि पत्रकार को फैक्टिविस्ट होना चाहिए, तथ्यों के आधार पर पत्रकारिता होना चाहिए। इन्हीं कारणों से डिजिटल मीडिया के नाम पर पत्रकारिता की विश्वसनीयता कम हुई है। पत्रकारिता में स्वतंत्रता जरूरी है लेकिन स्वच्छंदता नहीं होनी चाहिए। पत्रकारिता में परीक्षण आवश्यक है लेकिन अधिकांशतः डिजिटल मीडिया में कोई परीक्षण नहीं हो रहा है, गलत प्रसारित हो जाने के बाद उसे हटा लेना आसान है इसलिए उसकी विश्वसनीयता अच्छी नहीं होती। डिजिटल मीडिया की सबसे बड़ी चुनौती विश्वसनीयता है। दूसरी चुनौती फेक समाचारों का है, कहीं का फोटो या वीडियो लेकर कुछ भी समाचार परोसा जा रहा है। सामान्य जनता ऐसे गलत समाचारों पर भी विश्वास करते हैं, इससे समाज गुमराह हो रहा है। ऐसी समाचारों के कारण भारत में पढ़े लिखे लोग भी कोविड का टीका नहीं लगवा रहे थे। यह देश के लिए भी खतरा है। इस फेक न्यूज की पहचान करना जरूरी है। जरूरत है नागरिकों को इस खतरे के प्रति जागरूक करने की है, मीडिया साक्षरता अभियान शुरू करने की आवश्यकता हैं। डिजिटल मीडिया की ताकत का उपयोग करके सकारात्मक और रचनात्मक विषयों को जनता तक पहुंचाने की आवश्यकता है।

मुख्य अतिथि मयंक श्रीवास्तव ने इस अवसर पर कहा कि नारद ब्रह्मांड के पहले पत्रकार थे, वे रामायण और महाभारत जैसी रचना के प्रेरणास्त्रोत भी थे। भागवत पुराण में देवऋषि नारद के प्रसंग आते हैं, जिससे पता चलता है कि वे कितनी तेजी से सूचनाएं प्रस्तुत करते थे। नारद संवाददाता थे, केवल समस्या नहीं बताते थे बल्कि समस्याओं का समाधान भी देते थे। आयुक्त जनसंपर्क श्री श्रीवास्तव ने बताया कि लोग बहुत जिज्ञासु होते हैं। ऐसे में बहुत जरूरी है कि संचार के माध्यम उन्हें समग्र तस्वीर से परिचित कराएं। समाज में बहुत कुछ बुरा घट रहा है तो बहुत कुछ अच्छा भी हो रहा है। इस सकारात्मकता से परिचित कराना बहुत जरूरी है, जिससे लोगों के मन में आशावादिता विकसित हो, वे बेहतर समाज के निर्माण में जुट पाएं।

संबोधन के बाद अतिथियों को स्मृति चिन्ह आयोजन समिति के संयोजक श्री आर. कृष्णा दास ने दिया। कार्यक्रम का संचालन प्रियंका कौशल ने किया और आभार प्रदर्शन आशुतोष मंडावी ने किया।

कार्यक्रम में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के मध्य क्षेत्र के प्रचार प्रमुख श्री कैलाश, प्रांत के प्रचार प्रमुख संजय तिवारी, वरिष्ठ पत्रकार शंकर पांडेय, जनसंपर्क विभाग के वरिष्ठ अधिकारी, वरिष्ठ पत्रकार और गणमान्य नागरिक उपस्थित थे

श्रीगुरु भागवत का छत्तीसगढ़ी और कोसली का हुआ विमोचन, साथ मे डिजिटल एलबम लॉन्च किया गया

हरियाणा-   हरियाणा के गुरुग्राम स्थित साई का आंगन परिसर में गुरुवार शाम को गुरु जी डा. चन्द्रभानु सतपथी द्वारा "श्री गुरुभागवत छत्तीसगढ़ी " एवं "श्रीगुरु भागवत कोसली" नामक दो डिजिटल एलबम का विमोचन किया गया। साथ में गुरु भागवत "छत्तीसगढ़ी प्रार्थना किताब" का विमोचन भी किया गया। गुरु भागवत छत्तीसगढ़ी प्रार्थना , गुरु जी चन्द्र भानू सतपथी जी के द्वारा लिखित गुरु भागवत उड़िया से ली गयी 34 पंक्तियां हैं जिसे उड़ीसा के मंदिरों में प्रार्थना के रूप में गाई जाती हैं। दोनों एल्बम में गीत व संगीत डा. चन्द्र भानू सतपथी द्वारा प्रदान किया गया है। दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ करने के उपरांत डा. सतपथी जी ने इनका विमोचन किया ।

इस अवसर पर अखिलेश चौबे ने श्रीगुरु भागवत छत्तीसगढ़ी की व चारुदत्त मिश्रा ने श्रीगुरु भागवत कोसली की आवश्यकता और उपादेयता पर विस्तार से प्रकाश डाला। अन्त में साई के आंगन के बच्चों ने श्रीगुरु भागवत की कुछ पंक्तियों का गायन और संबलपुरी नृत्य का प्रदर्शन किया गया । इस कार्यक्रम में गुरु ग्राम के अलावा छत्तीसगढ़ और पश्चिम ओडिशा के अनेक बुद्धि जीविओं ने अपनी उपस्थिति दर्ज की। डा. सतपथी द्वारा गुरु शिष्य परंपरा की महानता को ध्यान में रखते हुए श्री गुरु भागवत की ओडिया भाषा में रचना की है, मूल रूप से ओड़िया में लिखी गयी श्री गुरु भागवत का अब तक देश की 19 भाषाओं अनुवाद किया गया है।

लोकसभा चुनाव में कांग्रेस को मिली हार की समीक्षा जारी, मोइली की अगुवाई में फैक्ट फाइंडिंग टीम आज कांकेर में

रायपुर-  लोकसभा चुनाव में छत्तीसगढ़ में कांग्रेस महज एक ही सीट पर जीत दर्ज कर पाई है, जिस पर अब समीक्षा शुरू हो चुकी है. इस कड़ी में दिल्ली से कांग्रेस के वरिष्ठ नेता वीरप्पा मोइली की अगुवाई में फैक्ट फाइंडिंग टीम छत्तीसगढ़ आई है. पीसीसी चीफ दीपक बैज ने बताया कि टीम आज कांकेर जा रही है, जहां बस्तर और कांकेर लोकसभा क्षेत्र की समीक्षा होगी. सोमवार को दुर्ग और राजनांदगांव लोकसभा क्षेत्र की समीक्षा होगी. 

प्रदेश कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष दीपक बैज ने इसके साथ मीडिया के समक्ष बृजमोहन अग्रवाल के मॉब लिंचिंग वाले बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि बृजमोहन अग्रवाल और सरकार के बयान में अंतर है. सरकार ठीक-ठाक नहीं चल रही है. अपराध पर लगाम नहीं है. आरंग की घटना हत्या है, आत्म हत्या नहीं है. बृजमोहन के बयान से यह स्पष्ट होता है. सरकार क्या छुपाना चाहती है. सरकार को स्पष्ट करना चाहिए कि ये हत्या है या आत्म हत्या है.

उन्होंने कहा कि प्रदेश की कानून व्यवस्था चरमरा चुकी है. सरकार से आक्रोश है. भाजपा सरकार चला नही चला पा रही है. बढ़ते अपराध और घटना को डायवर्ड करने वाला प्लान है. सरकार अपनी असफलता और घटनाओं को छुपा रही है.

पीएम मोदी के ‘मन की बात’ रेडियो वार्ता को लेकर दीपक बैज ने कहा कि पीएम 10 साल से मन की बात कर रहे हैं. उसकी क्या बात है. सीएम ही क्यों, पूरे मंत्रिमंडल को जाना चाहिए. वहीं नगरीय निकाए चुनाव को लेकर दीपक बैज ने कहा कि सरकार बुरी तरीके से डर गई है. इनडायरेक्ट चुनाव होते तो भाजपा सरकार चुनाव हार जाएगी. हम लोग नगरीय निकाए चुनाव की तैयारी शुरू कर चुके हैं. मजबूती से चुनाव लड़ेंगे.

विष्णु का सुशासन: जनदर्शन से आम जनता में हो रहा, नई आशा का संचार

रायपुर-   अपने पहले ही जनदर्शन में मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने अपने संवेदनशील पहल और त्वरित निर्णयों से लोगों के मन में एक नई आशा का संचार कर दिया है। प्रदेश के सभी कोने से लोग मुख्यमंत्री के जनदर्शन में जुटे। जनदर्शन का समय एक बजे तक रखा गया था लेकिन पहले ही जनदर्शन को लेकर लोगों में इतनी उत्सुकता थी कि इस समय तक काफी लोग जुट गये थे। इसमें से कुछ के मन में आशंका थी कि मुख्यमंत्री के शेड्यूल के काफी टाइट होने की वजह से समय न समाप्त हो जाए और मुख्यमंत्री जी न मिल पाएं। यह आशंका निर्मूल साबित हुई।

विष्णु के सुशासन का अहसास सभी आवेदकों को उस समय हुआ जब मुख्यमंत्री श्री साय ने पूरे धैर्य के साथ लोगों की समस्याओं को सुनकर मौके पर ही इनका निराकरण करने के निर्देश दिये। जब तक आखरी आवेदक कतार में था, मुख्यमंत्री भी अपनी कुर्सी से हिले नहीं, पूरे समय तक तन्मयता से लोगों को सुनते रहे। जनदर्शन में बड़ी संख्या में भीड़ महिलाओं की थी।

महतारी वंदन योजना की संवेदनशील पहल को साकार कर मुख्यमंत्री ने माताओं-बहनों के जीवन में जो उजाला फैलाया, उससे इनके सपनों में पंख लग गये हैं। एक युवा लड़की आयुषी आई और उसने प्रदेश के मुखिया से कहा कि मुझे यूपीएससी की तैयारी करनी है। मेरे पिता कोविड में नहीं रहे, उनका सपना था कि मैं यूपीएससी करूं और मेरा भी यही सपना है। मुख्यमंत्री ने आयुषी बिटिया को भरोसा दिलाया। जब प्रदेश के मुखिया का आशीर्वाद किसी बिटिया को मिले तो निश्चित ही उसके सपनों को पर लग जाते हैं। मुख्यमंत्री न केवल इनके सपनों को पूरा करने मदद कर रहे हैं अपितु उनका हौसला भी बढ़ा रहे हैं।

जनदर्शन की खास बात यह है कि मुख्यमंत्री न केवल लोगों के आवेदन पर कार्रवाई सुनिश्चित कर रहे हैं अपितु पूरी संवेदनशीलता से उनकी तकलीफ भी सुन रहे हैं। मुख्यमंत्री की ख्याति प्रदेश में इस बात को लेकर भी है कि केंद्र में राज्य मंत्री रहने के दौरान और अपने लंबे संसदीय जीवन में उन्होंने छत्तीसगढ़ के कई मरीजों का एम्स में इलाज करवाया। इस ख्याति को देखते हुए लोग अपनी स्वास्थ्य संबंधी दिक्कतें लेकर भी पहुंचे और मुख्यमंत्री ने इसका समाधान किया। एक दिव्यांग बालक के इलाज के लिए उन्होंने जनदर्शन में ही निर्देश दिए और बच्चे को तत्काल अस्पताल ले जाकर एडमिट कर दिया गया।

पूरे जनदर्शन के दौरान सबसे दिल छूने वाला पल वो रहा जब मुख्यमंत्री सीधे दिव्यांगजनों के पास पहुंचे। दिव्यांगजनों को किसी तरह की तकलीफ न हो, इस बात का जनदर्शन में खास ध्यान रखा गया था। जिन दिव्यांगजनों के दिव्यांगता प्रमाणपत्र बनाने में दिक्कत आ रही थी, उनके दिव्यांग प्रमाणपत्र उसी दिन बनाकर दे दिये गये।

जनदर्शन के तुरंत पश्चात आये सभी आवेदनों के प्रभावी निराकरण के लिए अधिकारियों को निर्देशित कर दिया गया। इसकी मानिटरिंग भी आरंभ कर दी गई है। सुशासन और पारदर्शिता को बढ़ावा देने की सबसे अहम कड़ी जनता से प्रत्यक्ष संवाद है। जनदर्शन के माध्यम से छत्तीसगढ़ में सुशासन को और भी प्रभावी बनाने में ठोस मदद मिलेगी।