अमेरिका का भारत को बड़ा ऑफर, पीएम मोदी की यात्रा से पहले किलर ड्रोन बेचना चाहता है बाइडेन प्रशासन
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प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अमेरिका यात्रा से पहले बाइडेन सरकार ने भारत को बड़ा ऑफर दिया है।रिपोर्ट के मुताबिक, अमेरिका चाहता है, कि भारत सरकार अमेरिका से विशाल हथियारबंद ड्रोन डील को पीएम मोदी की अमेरिका यात्रा से पहले फाइनल कर ले। दरअसल, भारत लंबे समय से अमेरिका से विशाल हथियारबंद ड्रोन विमान सी गार्डियन खरीदना चाहता है लेकिन यह डील लटकी हुई है। अमेरिकी वार्ताकार अब यह उम्मीद कर रहे हैं कि पीएम मोदी की 22 जून होने वाली यात्रा में यह गतिरोध टूट सकता है।
रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक चूंकि पीएम मोदी की यात्रा तय हो गई है, ऐसे में अमेरिका के विदेश मंत्रालय, रक्षा मंत्रालय पेंटागन और राष्ट्रपति कार्यालय वाइट हाउस ने भारत से कहा है कि वह 30 MQ-9 प्रिडिएटर हथियारबंद ड्रोन के मामले में प्रगति 'दिखाए।'
इंडिया टुडे ने सरकारी सूत्रों के हवाले से अपनी रिपोर्ट में ये जानकारी दी है। जिसमें बताया गया है कि लंबे समय से अटकी हुई इस डील को 15 जून को होने वाली बैठक के बाद आगे बढ़ाया जा सकता है। इसके लिए अमेरिका की तरफ से भी लगातार कोशिशें हो रही हैं। रक्षा मंत्रालय की ये बैठक प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की 21 से 24 जून तक अमेरिका दौरे से ठीक पहले हो रही है। जिसमें कई रक्षा सौदों को लेकर चर्चा हो सकती है।
पीएम मोदी का ये दौरा पिछले कई दौरों से बिल्कुल अलग होगा। प्रधानमंत्री मोदी ने देश को सशक्त बनाने का जो प्रण लिया है।सुपरपावर अमेरिका भी भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का बेसब्री से इंतज़ार कर रहा है। इस बार अमेरिका की 3 सबसे बड़ी संस्थाएं भारत के साथ बहुत बड़ी डील करने को बेताब हैं। कयास लगाए जा रहे हैं कि इस बार अमेरिका से MQ-9B सी गार्डियन ड्रोन की डील भी हो सकती है। इस तरह के ड्रोन्स भारत ने साल 2020 में लीज़ पर लिए थे। नेवी के बेड़े में ये दोनों ड्रोन शामिल किए गए थे। भारत को इस ड्रोन की ताकत का अहसास हो गया है, इसलिए इसकी डील सीधे अमेरिका से बड़े स्तर पर हो सकती है।
बता दें कि भारत ने समुद्र में चीनी और पाकिस्तानी हरकतों पर निगरानी के लिए दो सी गार्डियन ड्रोन लीज पर लिया हुआ है। MQ-9 प्रिडिएटर ड्रोन सैटेलाइट से संचालित होता है और यह 45 हजार फुट की ऊंचाई पर उड़ते हुए 35 घंटे तक हवा में रह सकता है। इसमें रेडॉर की तरह से सेंसर लगे होते हैं। इसमें इलेक्ट्रानिक सपोर्ट के लिए उपकरण होते हैं जो किसी भी दुश्मन की पहचान कर सकते हैं। इसके बाद इस ड्रोन में लगी मिसाइलों और बम की मदद से उस दुश्मन को तबाह कर दिया जाता है।
Jun 15 2023, 13:44