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*भदोही में 1.12 करोड़ से त्रेतायुग के सीतावट और वाल्मीकि आश्रम का होगा कायाकल्प*

रामायण सर्किट में शामिल होना चाहिए: महंत

रिपोर्ट -नितेश श्रीवास्तव

भदोही। धार्मिक स्थल सीतामढ़ी के पौराणिक एवं प्राचीन सीता मंदिर महर्षि वाल्मीकि आश्रम का एक करोड़ 12 लाख रुपए से पर्यटन विभाग कायाकल्प करेगा।

प्रस्तावित कार्यों में कुछ संशोधन के चलते काम शुरू होने में थोड़ी देरी हो रही है। विकास कार्यों के लिए भूमि पूजन भी हो चुका है। महर्षि वाल्मीकि आश्रम का विकास कार्य का जिम्मा कार्यदायी संस्था यूपी प्रोजेक्ट कारपोरेशन लिमिटेड को मिली है। पर्यटन विभाग की ओर से महर्षि वाल्मीकि आश्रम परिसर में भव्य, सत्संग हाॅल, पाथवे, सोलर लाइट,शेड, इंटरलाॅकिंग के साथ सुंदरी कारण के साथ त्रेता युगीन वटवृक्ष सीतावट के संरक्षण के लिए चबूतरे को पक्का बनाकर ग्रेनाइट पत्थर भी लगेगा। वर्षों से उपेक्षित प्राचीन सीता मंदिर महर्षि वाल्मीकि स्थल से ही सीतामढ़ी की प्रामाणिकता है। स्थल का रामायण कालीन गाथाओं की साक्षी लव-कुश जन्मस्थली, रामायण रचना और सीता समाहित स्थल के रुप में जानी जाती हैं। वाल्मिकी आश्रम मंदिर के पास गंगा तट पर बना दो मंजिला डाक बंगला शोपीस है।

महर्षि वाल्मीकि आश्रम सीतामढ़ी पंडित महेश्वर शास्त्री ने कहा कि सीतामढ़ी स्थल त्रेतायुगीन गाथाओं की साक्षी है। जिस तरह पर आदि शक्ति मां सीता और भगवान राम के सुपुत्रों का जन्म हुआ हो वह स्थल आज भी विकास से अछूता है। सीतामढ़ी की धरती पर प्रथम महाकाव्य रामायण की रचना महर्षि वाल्मीकि जी ने की थी। लेकिन रामायण सर्किट में सीतामढ़ी को शामिल नहीं किया जाना दुर्भाग्यपूर्ण है। यह सुखद बात है कि प्राचीन काल का विकास योगी सरकार में होने वाला है।

*100 शैय्या संयुक्त चिकित्सालय में निर्माणाधीन कार्यों का जिलाधिकारी ने लिया जायजा*

रिपोर्ट -नितेश श्रीवास्तव

भदोही- शनिवार को कार्यदाई संस्था उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम लिमिटेड सोनभद्र इकाई को जनपद भदोही में आवंटित 100 शैय्या संयुक्त चिकित्सालय निर्माण परियोजना का स्थलीय निरीक्षण जिलाधिकारी ने किया। मौके पर स्वयं सहित कार्यदाई संस्था के अभियंता, जिला अर्थ एवं संख्या अधिकारी एवं अधिशासी अभियंता लोक निर्माण विभाग तथा अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व उपस्थित रहे।

संस्था के अभियंता द्वारा अवगत कराया गया कि यह परियोजना एसआईटी जांच से आच्छादित थी, प्रकरण का निस्तारण होने के पश्चात निर्माण कार्य प्रारंभ किया गया है। निरीक्षण के दौरान माहवार निर्माण कार्य कराए जाने का प्लान तैयार कर मैनपॉवर बढ़ाते हुए कार्य निर्धारित समय सीमा के अंतर्गत पूर्ण कराए जाने हेतु कार्यदाई संस्था के अभियंता को निर्देशित किया गया।

*ऑनलाइन हाजिरी लगाने में भदोही प्रदेश में अव्वल, मिर्जापुर 43 वें और सोनभद्र 56 वें स्थान पर*

रिपोर्ट -नितेश श्रीवास्तव

भदोही- परिषदीय विद्यालयों में शिक्षक और बच्चों की ऑनलाइन उपस्थिति दर्ज करने की सूची में भदोही शीर्ष पर है। कौशांबी दूसरे स्थान पर है। सूची में पूर्वांचल के भदोही और वाराणसी ही टॉपटेन में शामिल है। वाराणसी 10वें नंबर पर है। मिर्जापुर 43वें और सोनभद्र 56वें स्थान पर है।

प्रदेश स्तर पर रैंकिंग में अव्वल आने पर डीएम ने बेसिक शिक्षा विभाग के अधिकारियों की सराहना की। जिले में 885 प्राथमिक, पूर्व माध्यमिक विद्यालय एवं कंपोजिट विद्यालय संचालित हैं। इसमें करीब छह हजार शिक्षक तैनात हैं। करीब पांच महीने पूर्व शासन के निर्देश पर स्कूलों में शिक्षकों और बच्चों की डिजिटल हाजिरी शुरू की गई थी।

बाराबंकी की रैंकिंग सबसे खराब है। सूची में वह 75वें स्थान पर है। जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी भूपेंद्र नारायण सिंह ने कहा कि शिक्षकों की मेहनत से यह उपलब्धि मिली है।

*भदोही में छत-विछत मिला बच्ची का शव:24 नवंबर को गांव में आई बारात को देखने निकली थी, परिजन ने की थी पुलिस से शिकायत*

रिपोर्ट -नितेश श्रीवास्तव

भदोही। भदोही कोतवाली क्षेत्र के याकूबपुर गांव में शुक्रवार को एक दर्दनाक घटना ने पूरे इलाके को झकझोर कर रख दिया। 11 वर्षीय बच्ची का क्षत-विक्षत शव खेत में कास की झाड़ियों में पाया गया। शव मिलने की सूचना पर गांव में सनसनी फैल गई और बड़ी संख्या में लोग मौके पर जमा हो गए। घटना की जानकारी मिलते ही एसपी डॉ मीनाक्षी कात्यायन,एएसपी डॉ तेजवीर सिंह और सीओ अजय कुमार चौहान पुलिस बल और फील्ड यूनिट के साथ घटनास्थल पर पहुंचे। पुलिस ने मौके का मुआवजा किया और शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। अधिकारियों ने घटना की जांच - पड़ताल शुरू कर दी है। मृतक बच्ची की पहचान गांव के ही जगतपाल की पुत्री कंचन के रुप में हुई है। जानकारी के अनुसार, 22 नवंबर को कंचन अपने घर से बारात देखने ग‌ई थी, लेकिन वापस नहीं लौटी। परिजनों ने अगले दिन उसकी गुमशुदगी की सूचना पुलिस को दी थी। पुलिस ने तत्काल केस दर्ज कर बच्ची की तलाश शुरू कर की थी, लेकिन अब उसका शव घर से महज 150 मीटर की पूरी पर मिला। मृतका के माता-पिता ने बताया कि बच्ची की गुमशुदगी के बाद उन्होंने इस इलाके में भी तलाश की थी, लेकिन तब शब नहीं मिला। परिजनों का आरोप है कि उनकी बेटी के साथ कुछ गलत हुआ है और आरोपियों को कड़ी से कड़ी सजा दी जानी चाहिए ताकि इस तरह की घटनाओं पर रोक लग सके। घटना को लेकर एसपी डॉ मीनाक्षी कात्यायन ने कहा कि मामले की गंभीरता से जांच की जा रही है। परिजनों और ग्रामीणों से पूछताछ की जा रही है। पुलिस ने कहा कि दोषियों को जल्द गिरफ्तार कर सख्त कार्रवाई की जाएगी।

*भदोही में छत-विछत मिला बच्ची का शव:24 नवंबर को गांव में आई बारात को देखने निकली थी, परिजन ने की थी पुलिस से शिकायत*

रिपोर्ट -नितेश श्रीवास्तव

भदोही। भदोही कोतवाली क्षेत्र के याकूबपुर गांव में शुक्रवार को एक दर्दनाक घटना ने पूरे इलाके को झकझोर कर रख दिया। 11 वर्षीय बच्ची का क्षत-विक्षत शव खेत में कास की झाड़ियों में पाया गया। शव मिलने की सूचना पर गांव में सनसनी फैल गई और बड़ी संख्या में लोग मौके पर जमा हो गए। घटना की जानकारी मिलते ही एसपी डॉ मीनाक्षी कात्यायन,एएसपी डॉ तेजवीर सिंह और सीओ अजय कुमार चौहान पुलिस बल और फील्ड यूनिट के साथ घटनास्थल पर पहुंचे।

पुलिस ने मौके का मुआवजा किया और शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। अधिकारियों ने घटना की जांच - पड़ताल शुरू कर दी है। मृतक बच्ची की पहचान गांव के ही जगतपाल की पुत्री कंचन के रुप में हुई है। जानकारी के अनुसार, 22 नवंबर को कंचन अपने घर से बारात देखने ग‌ई थी, लेकिन वापस नहीं लौटी। परिजनों ने अगले दिन उसकी गुमशुदगी की सूचना पुलिस को दी थी। पुलिस ने तत्काल केस दर्ज कर बच्ची की तलाश शुरू कर की थी, लेकिन अब उसका शव घर से महज 150 मीटर की पूरी पर मिला। मृतका के माता-पिता ने बताया कि बच्ची की गुमशुदगी के बाद उन्होंने इस इलाके में भी तलाश की थी, लेकिन तब शब नहीं मिला। परिजनों का आरोप है कि उनकी बेटी के साथ कुछ गलत हुआ है और आरोपियों को कड़ी से कड़ी सजा दी जानी चाहिए ताकि इस तरह की घटनाओं पर रोक लग सके। घटना को लेकर एसपी डॉ मीनाक्षी कात्यायन ने कहा कि मामले की गंभीरता से जांच की जा रही है। परिजनों और ग्रामीणों से पूछताछ की जा रही है। पुलिस ने कहा कि दोषियों को जल्द गिरफ्तार कर सख्त कार्रवाई की जाएगी।

बर्न यूनिट में लगेगा फायर सिस्टम,अलार्म बजते ही बुझेगी आग

नितेश श्रीवास्तव

भदोही। सरपतहां स्थित सौ शैय्या अस्पताल में बर्न यूनिट में फायर हाइड्रोट सिस्टम लगाया जाएगा। इसके लिए करीब चार लाख 65 हजार 144 रुपए का प्रस्ताव तैयार कर शासन को भेजा गया है।

स्वीकृति मिलते ही फायर सिस्टम का कार्य यूनिट में शुरू होगा। पुरानी बिल्डिंग होने के कारण यूनिट में फायर सिस्टम की व्यवस्था अब तक नहीं हो सकी है। जिले के सौ शैय्या परिसर में स्थित बर्न यूनिट का संचालन तो जैसे तैसे कर दिया गया है, लेकिन व्यवस्थाएं अभी भी आधी अधूरी पड़ी है। यहां चिकित्सकों की ड्यूटी आनकाल और नर्स की ड्यूटी कागजों पर लगाई गई है। हालंकि यूनिट में धीरे-धीरे व्यवस्थाएं सुधारने का प्रयास हो रहा है।

यूनिट में फायर सिस्टम लगाया जाएगा। जिससे आग लगते ही अलार्म बजना शुरू हो जाएगा और आग बुझाई भी जा सकेगी। यह आग स्प्रिंगलर विधि से बुझेगी। जिसके लिए फायर सिस्टम लगाया जाएगा। यूनिट के सामने पानी की टंकी का निर्माण किया जाएगा। पाइप के जरिए आग पर काबू पाया जाएगा। अस्पताल प्रशासन ने चार लाख 65 हजार 165 रुपए का प्रस्ताव बनाकर शासन को प्रस्ताव भेजा है।

बर्न यूनिट में फायर सिस्टम लगाने के लिए चार लाख 65 हजार 144 रुपए का प्रस्ताव शासन को भेजा गया है। अभी स्वीकृति नहीं मिली है। मंजूरी मिलने के बाद शुरू किया जाएगा।

डॉ सुनील पासवान सीएमएस सौ शैय्या

भदोही में 125 मरीजों ने कराया रजिस्ट्रेशन जिला अस्पताल में मोतियाबिंद का होगा निशुल्क आपरेशन

नितेश श्रीवास्तव 

भदोही। ज्ञानपुर रेडक्रॉस सोसाइटी भदोही शाखा द्वारा रेडक्रॉस कार्यालय ज्ञानपुर में निःशुल्क नेत्र एवं स्वास्थ्य चिकित्सा शिविर का आयोजन किया गया। शिविर में 125 मरीजों का परीक्षण किया गया तथा 30 मोतियाबिंद के मरीजों को चयन ऑपरेशन के लिए किया गया। शिविर का उद्घाटन जिलाधिकारी विशाल सिंह ने किया विशाल सिंह ने कहा कि मानवता की सेवा महान कार्य है रेडक्रॉस सोसाइटी द्वारा नेत्र के साथ स्वास्थ्य की जांच भी इस बार की जा रही है ।

इस प्रकार के शिविर से आमजन को लाभ प्राप्त होता है इस प्रकार के शिविर ग्रामीण अंचल में लगाकर ऐसे व्यक्तियों तक लाभ पहुंचाया जाए जो वंचित रह जाते हैं इस अवसर पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर संतोष कुमार चक, अपर मुख्य चिकित्सा चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर ओपी शुक्ला तथा अन्य अधिकारी उपस्थित थे। डॉक्टर पीके सिंह, डॉक्टर घनश्याम, डॉ प्रदीप कुमार, डॉक्टर प्रशांत कुमार, डॉक्टर नितिशा पाण्डेय, आदि ने स्वास्थ्य का परीक्षण और उपचार किया। इस अवसर पर सचिव डॉक्टर भारतेंदु द्विवेदी जी ने सभी का स्वागत किया तथा धन्यवाद ज्ञापन कोषाध्यक्ष हरेंद्र प्रताप सिंह ने किया। इस अवसर पर अरविंद भट्टाचार्य, अजीता प्रसाद पांडे, आलोक गुप्ता, आनंद गुप्ता,आर यन सिंह, इरशाद खान, कमलेश गुप्ता, सौरभ मिश्रा, डॉक्टर राजेश, हरकिशन शुक्ला, अभय श्रीवास्तव, सतीश कुमार, डॉक्टर घनश्याम दास गुप्ता, डॉक्टर सविता द्विवेदी, सुनीता , उपासना, चालू सिंह, आदि उपस्थित थे।

*भदोही में BSA ने 8 टीचरों का रोका वेतन:कंपोजिट विद्यालय सुरियावा के निरीक्षण में रहे थे अनुपस्थित*

नितेश श्रीवास्तव 

भदोही। भदोही के कंपोजिट विद्यालय सुरियावां में आज बीएस‌ए भूपेंद्र नारायण सिंह ने अचानक निरीक्षक किया। इस दौरान 8 अध्यापक अनुपस्थित पाए गए, जिनके खिलाफ बीए‌स‌ए ने तात्कालिक कार्रवाई करते हुए उनका वेतन रोक दिया। बीएस‌ए के इस निरीक्षक से परिषदीय विद्यालयों में हड़कंप मच गया है। जिला बेसिक शिक्षा को लागातार यह शिकायत मिल रही थी कि विद्यालयों में शिक्षकों की उपस्थिति ठीक से नहीं हो रही और विद्यालय बंद होने से पहले शिक्षक गायब हो जाते हैं। इस पर बीएसए ने सुरियावां कंपोजिट विद्यालय का निरीक्षण करने का निर्णय लिया वह आज 3 बजे विद्यालय पहुंचे। निरीक्षक के दौरान प्रधानाध्यापक के अलावा बाकी सभी आठ अध्यापक अनुपस्थित पाए गए। बीए‌स‌ए ने अनुपस्थित पाए गए अध्यापकों का एक दिन का वेतन रोक दिया और उन्हें कड़ी चेतावनी दी कि भविष्य में यदि ऐसी लापरवाही दोहराई गई तो उनके खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी। इसके अलावा, बीए‌स‌ए ने देखा कि अध्यापक बच्चों की आनलाइन उपस्थिति नहीं ले रहे थे। जिस पर उन्होंने प्रधानाध्यापिका को निर्देश दिया कि बच्चों की उपस्थिति आनलाइन ली जाए और साथ ही डिजिटल रजिस्टर का उपयोग सुनिश्चित किया जाए।

टीबी के 1200 मरीजों का इलाज, एक साल में 2500 हुए स्वस्थ

नितेश श्रीवास्तव

भदोही। जिले में इस साल 2500 लोगों को टीबी मुक्त बनाया जा चुका है। क्षय रोग की दिशा में बेहतर कार्य के कारण जनपद प्रदेश में टाॅप में रहा। इस समय जिले में 1200 टीबी के मरीज उपचाराधीन है। जिले में टीबी मरीजों की देखभाल व सेहत में सुधारात्मक बदलाव का विभागीय परफार्मेंस 92 फीसदी रहा। उत्तर प्रदेश को 2025 तक टीबी मुक्त बनाने की दिशा में कार्य किया जा रहा है।

स्वास्थ्य विभाग की ओर से निरंतर शहर से लेकर ग्रामीण अंचल तक अभियान चलाकर ट्यूबरक्लोसिस के मरीजों की पहचान की जा रही है। अगर किसी भी व्यक्ति में कोई लक्षण मिलता है तो उनका बलगम सहित अन्य जांच को स्वैब भेजा जाता है। रिपोर्ट पाॅजटिव आने पर विभाग की ओर से उनकी सिर्फ निरंतर माॅनीटरिंग होती है, बल्कि समय - समय पर दवा भी उपलब्ध कराई जाती है। यहीं नहीं विभाग की ओर से उन्हें हर माह भरण - पोषण के लिए एक हजार रुपए भी मिलता है। एक नवंबर से पहले उन्हें 500 रुपए ही मिलते थे। टीबी मरीजों की पहचान आशा कर्मियों की टीम द्वारा की जाती है।

इसके अलावा विभाग समय - समय पर विशेष अभियान चलाकर भी टीबी मरीजों को चिन्हित किया जाता है। उसके बाद उनका इलाज होता है।

वार्षिक व्यय समीक्षा में जनपद प्रथम

डीटीओ डॉ विवेक श्रीवास्तव ने बताया कि क्षय रोग विभाग की वार्षिक व्यय समीक्षा में जनपद को पूरे सूबे में प्रथम स्थान प्राप्त हुआ है। मंडल के अन्य जनपद टाॅप टेन में अपना स्थान नहीं बना सके। राष्ट्रीय क्षय रोग उन्मूलन कार्यक्रम के तहत हर साल शासन स्तर से भौतिक और व्यय समीक्षा की जाती है।

जिले में टीबी के करीब 1200 मरीज उपचाराधीन है। जिन्हें हर महीने दवा दी जाती है। विभाग की ओर मरीजों की निगरानी निरंतर की जाती है। सरकार द्वारा संचालित योजनाओं का लाभ हर मरीजों तक पहुंच रहा है।

डॉ विवेक श्रीवास्तव डीटीओ भदोही

परिषद को भेजी गई 93 केंद्रों की सूची,पहले 85 परीक्षा केंद्र थे,अब आठ और बढ़ाए गए

नितेश श्रीवास्तव

भदोही। जिले में बोर्ड परीक्षा के लिए आठ केंद्र बढ़ाए जाएंगे। जिससे केंद्रों की संख्या 85 से बढ़कर 93 हो गई है, हालांकि अभी परिषद की तरफ से हरी झंडी मिलने का इंतजार है। चार सदस्यीय कमेटी ने छात्र संख्या के आधार पर आठ केंद्र बढ़ाने की संस्तुति की है, जिसको शिक्षा विभाग ने प्रस्तावित कर परिषद को भेज दिया है।फरवरी में शुरू होने वाली बोर्ड परीक्षा के लिए केंद्र निर्धारण की कवायद धीरे-धीरे अंतिम दौर में है। केंद्र बनने के लिए 190 विद्यालयों ने आवेदन किया था।

करीब 20 दिन पूर्व माध्यमिक शिक्षा परिषद ने 85 केंद्रों की अनंतिम सूची जारी किया। जिसमें कई अच्छे विद्यालय केंद्र नहीं बने थे और मानक पूर्ण न करने वाले स्कूल केंद्र बन गए। 14 नवंबर तक कुल 95 आपत्तियां आईं। डीएम के निर्देश पर एसडीएम के नेतृत्व में गठित टीम ने आपत्तियों का निस्तारण करते हुए शिक्षा विभाग को रिपोर्ट सौंपी। जिसमें छात्र संख्या के आधार पर आठ केंद्र बढ़ाने का प्रस्ताव दिया। जिसमें यह कहा गया कि 2024 की बोर्ड परीक्षा में कुल 56 हजार छात्र-छात्राएं शामिल हुए थे। जिसके लिए 96 केंद्र बनाए गए। 2025 की परीक्षा में 55 हजार विद्यार्थी परीक्षा में शामिल होंगे, इसलिए 85 केंद्र कम होंगे। ऐसे में आठ केंद्र बढ़ाया जाना जरूरी है।

इस आख्या के आधार पर माध्यमिक शिक्षा विभाग ने 93 केंद्रों को फाइनल करते हुए सूची परिषद को भेज दी।जिला विद्यालय निरीक्षक अंशुमान ने कहा कि एसडीएम की आख्या के आधार पर आठ केंद्र बढ़ाने का प्रस्ताव बनाकर परिषद को भेजा गया है। अब वहां से हरी झंडी मिलने पर केंद्र तय हो जाएंगे। उन्होंने बताया कि बोर्ड परीक्षा में हाईस्कूल और इंटरमीडिएट में कुल 55 हजार 167 छात्र-छात्राएं शामिल होंगे। इसमें हाईस्कूल के 26 हजार 912 और इंटरमीडिएट में 28 हजार 264 छात्र-छात्राओं ने पंजीकरण कराया है। कुल मिलाकर छात्र-छात्राओं की संख्या 2024 से करीब एक हजार, 2023 से दो हजार कम है।