नक्सलियों ने अपहरण कर 2 पूर्व सरपंचों की हत्या की, भाजपा से जुड़े होने का लगाया आरोप

बीजापुर-    छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले में नक्सलियों ने एक ही दिन में 2 पूर्व सरपंचों की हत्या कर दी है. नक्सलियों ने आज भैरमगढ़ थाना क्षेत्र के सुकलु फरसा और कडेर के पूर्व सरपंच सुखराम अवलम को मौत के घाट उतार दिया. माओवादियों ने दोनों सरपंचों का अगल-अलग स्थान से अपरहण किया था, जिसके बाद उनकी निर्मम हत्या कर दी.

बता दें, नक्सलियों ने 2 नवंबर को भैरमगढ़ थाना क्षेत्र के बिरयाभूमि गांव के रास्ते से पूर्व सरपंच सुकलु फरसा का अपहरण कर लिया था. वहीं नैमेड थाना क्षेत्र कडेर के पूर्व सरपंच सुखराम अवलम को नक्सलियों ने मुर्गा बाजार से अगवा किया था और अब दोनों की हत्या कर दी गई है.

नक्सलियों ने पूर्व सरपंच सुकलु फरसा के शव पर प्रेस नोट भी जारी किया है जिसमें माओवादियों ने उनपर भाजपा पार्टी से जुड़ने का आरोप लगाया है. इसके साथ ही लिखा कि तीन बार उन्होने पूर्व सरपंच को पार्टी से दूरी बनाने की चेतावनी दी थी. लेकिन उनकी बात नहीं मानने पर चौथी बार में नक्सलियों ने पूर्व सरपंच की हत्या कर दी है.

बेटी ने पिता को छोड़ने की की थी मार्मिक अपील

पूर्व सरपंच के अपहरण के बाद बुधवार को सुकलु फरसा के परिजन और बेटी यामिनी फरसा ने थाना में सूचना देने के दौरान सोशल मीडिया में पिता को छोड़ने की मार्मिक अपील भी की थी. लेकिन नक्सलियों ने पूर्व सरपंच को मौत के घाट उतार दिया.

वहीं बीजापुर एडिशनल एसपी चंद्रकांत गवर्ना ने घटना की पुष्टि करते हुए कहा कि जानकारी अनुसार हमारी टीम घटनास्थल के लिए रवाना हो चुकी है, जो भी आगे की प्रक्रिया होगी पूरा करेंगे.

छात्रा से छेड़छाड़ पर आत्मानंद स्कूल का लैब अटेंडेंट बर्खास्त, एफआईआर दर्ज होने के बाद हुआ गिरफ्तार

बिलासपुर-  छात्रा से छेड़छाड़ करने वाले आत्मानंद स्कूल के लैब अंटेंडेट को सेवा से बर्खास्त कर दिया गया है. जांच में दोषी पाए जाने के बाद लैब अटेंडेंट एमडी शहजाद के खिलाफ कलेक्टर ने सख्त कार्रवाई कर बड़ा संदेश दिया है. 

स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट हिन्दी/अंग्रेजी माध्यम विद्यालय, पचपेड़ी में पढ़ने वाली छात्रा से लैब अटेंडेंट एमडी शहजाद ने छेड़छाड़ की थी. मामले में एफआईआर के बाद उन्हें गिरफ्तार भी किया गया था. वहीं दो सदस्यीय टीम गठित कर मामले की जांच कराई गई. जिसकी जांच रिपोर्ट मस्तूरी विकास खण्ड शिक्षा अधिकारी ने कलेक्टर को पेश किया.

जांच अधिकारी द्वारा प्रस्तुत प्रतिवेदन के अनुसार, कक्षा सातवीं की एक छात्रा को सहायक शिक्षक विज्ञान प्रयोगशाला एमडी शहजाद द्वारा गलत नियत से बेड टच को अंजाम दिया गया, जो जांच प्रतिवेदन, बयानों के अनुसार प्रमाणित पाया गया. इसके बाद उक्त संबंध में शहजाद से जवाब मांगा गया था. उनका जवाब संतोषप्रद नहीं पाया गया.

आरोपी के जवाब के आधार पर कलेक्टर अवनीश शरण ने सहायक शिक्षक एमडी शहजाद के कृत्य को बेड टच का दोषी पाते हुए घोर अनुशासनहीनता की श्रेणी के साथ ही सिविल सेवा आचरण नियम 1965 के नियम 3 के विपरीत होने के कारण संविदा नियुक्ति को तत्काल प्रभाव से निरस्त कर दिया.

जिला प्रशासन का ‘वार्ड चलो अभियान’: कलेक्टर-एसपी ने डोर-टू-डोर पहुंचकर सुनी लोगों की समस्याएं, त्वरित निराकरण करने के दिए निर्देश

मुंगेली- मुंगेली नगर पालिका के सरदार पटेल वार्ड में उस वक्त कौतूहल का विषय बन गया और लोग हैरत में पड़ गए, जब जिले के कलेक्टर राहुल देव और पुलिस कप्तान भोजराम पटेल प्रशासनिक अमला के साथ डोर-टू-डोर लोगों के घरों में पहुंचकर समस्या जानने पहुंचे. कुछ वक्त तक तो लोगों को कुछ समझ नहीं आ रहा था,फिर वार्डवासियों को बताया गया कि मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और उपमुख्यमंत्री व नगरीय प्रशासन मंत्री अरुण साव की मंशा अनुरूप जिला प्रशासन के द्वारा एक अभिनव पहल करते हुए “वार्ड चलो अभियान” की शुरुआत की गई. जिसके तहत आगर क्लब में नगरीय प्रशासन एवं जिला प्रशासन की टीम लोगों की समस्या सुनने और उसका यथासम्भव निराकरण करने के उद्देश्य से शिविर भी लगाया गया. साथ ही प्रशासनिक अमला के साथ खुद कलेक्टर -एसपी लोगों के घरों में पहुंचकर न सिर्फ समस्याओ से वाकिफ हुए बल्कि त्वरित निराकरण करने के निर्देश भी दिये गए.

जानिए क्या है वार्ड चलो अभियान

जिला प्रशासन द्वारा नगर पालिका परिषद मुंगेली के आगर खेल परिसर से अभिनव पहल ‘‘वार्ड चलो अभियान’’ की शुरूआत की गई. इस दौरान कलेक्टर राहुल देव, पुलिस अधीक्षक भोजराम पटेल, प्रशासनिक अमला के साथ विभिन्न वार्डों में पहुंचे. उन्होंने रामगोपाल तिवारी वार्ड, सरदार पटेल वार्ड, सुभाष वार्ड, महामाई वार्ड, राजेंद्र वार्ड, गांधी वार्ड और विवेकानंद वार्ड में वार्डवासियों और व्यावसायियों से साफ-सफाई, पानी, बिजली सहित मूलभूत सुविधाओं के संबंध में चर्चा की.

आम लोगों से कलेक्टर-एसपी ने क्या कहा

कलेक्टर ने नागरिकों को अपने आसपास को साफ एवं सुरक्षित रखने प्रोत्साहित किया. उन्होंने नगर पालिका सीएमओ को प्रत्येक वार्डों को स्वच्छ बनाए रखने के लिए स्वच्छता ब्रांड एम्बेसडर नियुक्त करने के निर्देश दिए. साथ ही सरदार पटेल वार्ड में आकाश सोनी को तात्कालिक स्वच्छता ब्रांड एम्बेसडर बनाया गया. पुलिस अधीक्षक ने लोगों से आसपास में चोरी की घटना के संबंध में जानकारी ली और सुरक्षा की दृष्टि से सीसीटीवी कैमरा लगाने के लिए जागरूक किया.

वार्डवासियों ने गिनाई ये समस्या

महामाई वार्ड में ललिता सोनी ने पानी एवं बिजली की समस्या बताई. जगतराम सोनी ने वृद्धा पेंशन योजना दिलाने की मांग की. इसके साथ ही वार्डवासियों ने अतिक्रमण के कारण गली सकरा होने और गाड़ी आने-जाने में होने वाली परेशानी से अवगत कराया. कलेक्टर ने संबंधित अधिकारी को टीम गठित कर सभी के सहयोग से अतिक्रमण को मुक्त कराने, वृद्धा पेंशन और पानी, बिजली की समस्या का त्वरित निराकरण करने के निर्देश दिए.

क्या है मुख्यमंत्री की मंशा

कलेक्टर ने कहा कि मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और उपमुख्यमंत्री एवं नगरीय प्रशासन मंत्री अरूण साव की मंशा है कि शहर स्वच्छ एवं सुरक्षित हो. इसके मद्देनजर हम विभिन्न वार्डों में साफ-सफाई का निरीक्षण किया जा रहा है. नागरिकों की समस्याओं को सुनने के साथ उसके निराकरण के लिए प्रयास किया जा रहा है. इसका निश्चित रूप से सकारात्मक परिणाम आएगा. इस मुहिम के अंतर्गत सभी वार्डों में जाएंगे और नागरिकों को पानी, बिजली, सड़क सहित मूलभूत सुविधा उपलब्ध कराने के साथ और पात्र परिवारों को प्रधानमंत्री आवास योजना व विभिन्न योजनाओं का लाभ दिलाना सुनिश्चित करेंगे. पुलिस अधीक्षक ने कहा कि मुख्यमंत्री एवं उपमुख्यमंत्री की मंशा है कि नगरों में सीसीटीवी कैमरा लगे और वहां पर लोगों का जीवन सुरक्षित हो. सुरक्षा का भाव सिर्फ पुलिस विभाग से नहीं बल्कि जन सहयोग से संभव होगा, इसलिए पूरी टीम स्वच्छता को देखने के साथ-साथ सुरक्षा को भी देखने के लिए पहुंचे हैं. लोगों को सीसीटीवी टीवी कैमरा लगाने जागरूक किया जा रहा है. जनता से बातचीत करके यह समझने का प्रयास किया जा रहा है कि किसी को कोई शिकायत तो नहीं है. साथ ही लोगों से मिलकर उन्हें साइबर के बारे में भी जागरूक कर सके.

आगर क्लब में लगाया गया स्टॉल

कलेक्टर, पुलिस अधीक्षक, नगर पालिका अध्यक्ष ने जिला प्रशासन मुंगेली की अभिनव पहल ‘वार्ड चलो अभियान’’ अंतर्गत आगर खेल परिसर में लगाए गए स्टॉलों का अवलोकन किया. उन्होंने समाज कल्याण, उद्योग, चिप्स, पुलिस, राजस्व, नगर पालिका परिषद, जनसंपर्क, श्रम, अंत्यावसायी, अग्रणी बैंक और स्वास्थ्य विभाग के स्टॉलों किया और आमलोगों द्वारा मांगों एवं समस्याओं संबंधी प्राप्त आवेदनों और उसके निराकरण की जानकारी ली. इसके साथ ही आम लोगों को शासन की योजनाओं की जानकारी देने के निर्देश दिए. प्रधानमंत्री आवास शहरी योजनांतर्गत 104 आवेदन प्राप्त हुए. इसी तरह अन्य विभागों में आम नागरिकों ने आवेदन सौंपे, जिनमें से कई आवेदनों का मौके पर निराकरण आमजनों को राहत पहुंचाई गई।

शराब घोटाला मामला : पूर्व IAS अनिल टुटेजा को हाईकोर्ट से बड़ा झटका, कोर्ट ने जमानत याचिका की खारिज

बिलासपुर- शराब घोटाला केस के आरोपी जेल में बंद पूर्व IAS अधिकारी अनिल टुटेजा को हाइकोर्ट से एक बार फिर झटका लगा है. छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने टुटेजा की जमानत याचिका खारिज कर दी है.

बता दें, कि शराब घोटाला केस के सिलसिले में ED और IT ने टुटेजा के खिलाफ मामला दर्ज किया था, जिसमें टुटेजा को सुप्रीम कोर्ट से राहत मिल गई थी. लेकिन अप्रैल में ACB-EOW ने टुटेजा के खिलाफ एक नया मामला दर्ज करने के बाद नोटिस देकर पूछताछ के लिए उन्हें मुख्यालय में बुलाया था और फिर बाद में गिरफ्तार कर जेल भेज दिया. टुटेजा ने इसी मामले को लेकर जमानत याचिका दायर की थी. जिस पर सुनवाई के बाद अरविंद वर्मा की एकल पीठ ने उनकी अर्जी को खारिज कर दिया.

मुख्यमंत्री ने प्रदेशवासियों को विश्व मृदा दिवस दिवस की दी शुभकामनाएं
रायपुर-    मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने विश्व मृदा दिवस पर प्रदेशवासियों विशेषकर किसानों को बधाई और शुभकामनाएं दी है। उन्होंने कहा कि विश्व मृदा दिवस एक ऐसा अवसर है जो पृथ्वी पर जीवन को बनाए रखने में मिट्टी की महत्वपूर्ण भूमिका पर प्रकाश डालता है। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ की उर्वर धरती की फसल उत्पादन और कृषकों की समृद्धि में बहुत बड़ा योगदान है। छत्तीसगढ़ में मृदा जैसे अमूल्य संसाधन की रक्षा की सामूहिक ज़िम्मेदारी को हम सभी को याद रखना चाहिए। उन्होंने कहा कि हम सब साथ मिलकर यह सुनिश्चित करें कि हमारी उर्वर धरती आने वाली पीढ़ियों के लिए उपजाऊ और जीवंत बनी रहे।
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से की सौजन्य मुलाकात

रायपुर- मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने आज नई दिल्ली में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से उनके निवास पर मुलाकात की। इस दौरान मुख्यमंत्री ने गृह मंत्री को बस्तर ओलंपिक के समापन और पुलिस अवार्ड कार्यक्रम में शामिल होने के लिए औपचारिक निमंत्रण दिया, जिसे गृह मंत्री ने सहर्ष स्वीकार कर लिया। बैठक में उपमुख्यमंत्री अरुण साव और विजय शर्मा भी उपस्थित थे। मुख्यमंत्री ने इस दौरान राज्य में नक्सल विरोधी अभियानों की हालिया उपलब्धियों और बस्तर संभाग में चलाए जा रहे विकास कार्यों के सम्बन्ध में केंद्रीय गृह मंत्री को अवगत कराया।

मुख्यमंत्री श्री साय ने बताया कि सरकार द्वारा सड़कों, स्कूलों, स्वास्थ्य सुविधाओं और रोजगार के लिए किए गए प्रयासों ने स्थानीय जनता का भरोसा जीता है, जिससे माओवादी प्रभाव कमजोर हुआ है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार और सुरक्षा बलों के संयुक्त प्रयासों के कारण बस्तर क्षेत्र में नक्सल प्रभावित इलाकों में घटनाओं में तेजी से कमी आई है। सरकार के प्रयासों से बस्तर अब नक्सल मुक्त होने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहा है। सुरक्षा बल लगातार प्रभावी अभियान चला रहे हैं, और विकास कार्यों ने इसमें अहम भूमिका निभाई है।

मुख्यमंत्री ने विश्वास जताया कि 2026 तक छत्तीसगढ़ को पूरी तरह नक्सल मुक्त कर लिया जाएगा। उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्री को अवगत कराया कि आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों और नक्सल प्रभावित परिवारों के पुनर्वास के लिए योजनाओं को प्राथमिकता दी जा रही है। इसके तहत प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत 15,000 मकानों के निर्माण को शीघ्र पूरा करने के निर्देश दिए गए हैं, ताकि प्रभावित परिवारों को सुरक्षित और सम्मानजनक जीवन प्रदान किया जा सके।

मुख्यमंत्री ने केंद्रीय गृह मंत्री को बस्तर ओलंपिक के महत्व और राज्य में इसके प्रभावों के बारे में भी अवगत कराया। उन्होंने बताया कि यह आयोजन युवाओं को खेलों के माध्यम से जोड़ते हुए शांति और विकास की दिशा में एक प्रभावशाली कदम है। अब तक इस ओलंपिक में 1.65 लाख से अधिक युवाओं ने हिस्सा लिया है।

मुख्यमंत्री ने यह भी बताया कि बस्तर ओलंपिक में हॉकी, फुटबॉल, कबड्डी और वॉलीबॉल समेत 11 पारंपरिक खेलों को शामिल किया गया है, जो युवाओं को एकजुटता, सकारात्मकता और सामुदायिक भावना से जोड़ने का काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह आयोजन नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में विकास की एक नई लहर का प्रतीक है।

नई औद्योगिक नीति के रूप में निवेशकों के लिए छत्तीसगढ़ में खुला रेड कारपेट: मुख्यमंत्री विष्णु देव साय

रायपुर-    छत्तीसगढ़ में नए नए उद्योगों की स्थापना की व्यापक संभावनाएं हैं। यहां मिनरल्स का विपुल भंडार है, अनुकूल औद्योगिक वातावरण है, साथ ही उद्योग और व्यापार जगत के प्रतिनिधियों से चर्चा कर राज्य की नवीन औद्योगिक विकास नीति 2024-30 तैयार की गई है। इस नवीन नीति में उद्योगों की स्थापना की प्रक्रिया को सरल बनाया गया है और उद्योगों की स्थापना को प्रोत्साहित करने के लिए अनेक प्रावधान शामिल किए गए हैं। नई औद्योगिक नीति के रूप में निवेशकों के लिए रेड कारपेट छत्तीसगढ़ में खुला है। निवेश की जटिलताएं अब छत्तीसगढ़ में नहीं रही। सिंगल विंडों सिस्टम ने सब कुछ बहुत सरल कर दिया है। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने आज नवा रायपुर में नीति आयोग एवं छत्तीसगढ़ शासन द्वारा संयुक्त रूप से ‘‘छत्तीसगढ़ की औद्योगिक विकास नीति 2024-30 के संबंध में हितधारकों के साथ संवाद कार्यक्रम (स्टेक होल्डर कनेक्ट वर्कशॉप)’’ को संबोधित करते हुए यह बात कही।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्ष 2047 तक विकसित भारत का लक्ष्य दिया है। इसके लिए हमें विकसित छत्तीसगढ़ का निर्माण करना होगा। विकसित भारत के निर्माण में छत्तीसगढ़ के उद्योग जगत का भी महत्वपूर्ण योगदान होगा। छत्तीसगढ़ के विकास हेतु विभिन्न क्षेत्रों में औद्योगिक निवेश को बढ़ावा देते हुए छत्तीसगढ़ के अधिक से अधिक लोगों को रोजगार का अवसर प्रदान किया जाएगा।

उद्योग मंत्री लखन लाल देवांगन ने कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ की नवीन औद्योगिक नीति मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के मार्गदर्शन और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से प्रेरणा लेकर किया गया है। नई नीति तैयार करने में उद्योगपतियों से सुझावों को शामिल किया गया है। इस नीति से प्रदेश में निवेश तो आएगा ही, नये उद्योगों की स्थापना होगी, साथ ही राज्य के लोगों को रोजगार मिलेगा।

नीति आयोग के वरिष्ठ सलाहकार संजीत सिंह ने कहा कि छत्तीसगढ़ निवेशकों के लिए पसंदीदा राज्य बन गया है। छत्तीसगढ़ के नवीन औद्योगिक नीति की हर तरफ प्रशंसा की जा रही है। इस नीति से प्रदेश में सस्टेनेबल औद्योगिक विकास को नई दिशा मिलेगी। नई नीति में एमएसएमई उद्योगों को सशक्त बनाने का अच्छा प्रयास किया गया है। नये क्षेत्रों में निवेश के लिए इंसेन्टिव स्कीम तैयार की गई है। इस उद्योग नीति में रोजगार सृजन महत्वपूर्ण पहलू है।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कार्यक्रम में राज्य के 27 बड़े औद्योगिक समूहों को नवीन पूंजी निवेश के प्रस्ताव के संबंध में 32 हजार 225 करोड़ रुपए के निवेश के लिए इंटेंट टू इन्वेस्ट लेटर प्रदान किए। इनमें राज्य के कोर सेक्टर के साथ ही नये निवेश क्षेत्रों जैसे आईटी, एआई, डाटा सेंटर, एथेनॉल, इलेक्ट्रॉनिक्स, इलेक्ट्रिकल, कम्प्रेस्ड बायो गैस जैसे क्षेत्रों में निवेश किया जाएगा। इनमें शिवालिक इंजीनियरिंग, मां दुर्गा आयरन एण्ड स्टील, एबीआरईएल ग्रीन एनर्जी, आरएजी फेरो एलायज, रिलायंस बायो एनर्जी, यश फैंस एण्ड एप्लायंसेस, शांति ग्रीन्स बायोफ्यूल, रेक बैंक डाटा सेंटर आदि सम्मिलित हैं।

मुख्य सचिव अमिताभ जैन ने कहा कि छत्तीसगढ़ की नवीन औद्योगिक नीति में रोजगार सृजन, निर्यात प्रोत्साहन और उद्योगों की मंजूरी और स्थापना की प्रक्रिया के सरलीकरण पर फोकस किया गया है। वाणिज्य एवं उद्योग विभाग के सचिव रजत कुमार ने बताया कि नवीन औद्योगिक विकास नीति में राज्य की प्राथमिकताओं एवं राज्य में औद्योगिक विकास को गति प्रदान करने के लिये प्रावधान किये गये हैं ।

कार्यक्रम में आयोजित पैनल डिस्कशन में रोजगारवर्धक औद्योगिक विकास में औद्योगिक अधोसंरचना, नीति समर्थन एवं उद्योग स्थापना हेतु औपचारिक आवश्यकताओं को कम करने पर चर्चा की गई। कार्यक्रम में विभिन्न औद्योगिक संगठनों के प्रतिनिधियों सहित अन्य अधिकारीगण उपस्थित थे।

पुलिस ने गैंती गैंग का किया पर्दाफाश: 3 चोर समेत दो ज्वेलर्स और सहयोगियों को किया गिरफ्तार,2 दर्जन से अधिक चोरी की वारदातों को दे चुके हैं अंजाम

रायपुर-  पुलिस ने राजधानी रायपुर की आवासीय कॉलोनियों के सुनसान मकानों में चोरी की वारदातों को अंजाम देने वाले गैंती गैंग का भंडाफोड़ करते हुए 3 शातिर चोरों समेत 11 लोगों को गिरफ्तार किया है। यह गिरोह थाना मुजगहन, विधानसभा, तिल्दा नेवरा एवं मंदिर हसौद के सुनसान मकानों को निशाना बनाकर चोरी की वारदातों को अंजाम देता था। इस दौरान सेंध लगाने के लिए ये चोर गैंती और पेचकस का इस्तेमाल करते थे। आरोपियों के कब्जे से पुलिस ने लाखों रुपये के सोने-चांदी के जेवरात, नगदी, दोपहिया वाहन और अन्य चोरी के सामान भी बरामद किया हैं।

बता दें कि पुलिस ने गैंती गैंग के जिन शातिर चोरों को गिरफ्तार किया है उनमें सृजन शर्मा उर्फ स्वराज, उमेश उपाध्याय और सफीक मोहम्मद शामिल हैं। इनमें सृजन शर्मा उर्फ स्वराज पूर्व में भी चोरी और नकबजनी के मामलों में जेल जा चुका है। पुलिस की पूछताछ में उसने बताया कि वह और उसके साथी चोरी के जेवरातों को अपने परिचित ज्वेलर्स के पास बेच देते थे, वहीं कुछ जेवरातों को वित्तीय कंपनियों में गिरवी रखकर वह नगदी प्राप्त करते थे। पुलिस ने इन फाइनेंस कंपनियों को भी नोटिस जारी किया है।

पुलिस ने इस गिरोह के संगठित अपराध में शामिल अन्य सहआरोपियों और ज्वेलर्स को धारा 111 और 317 बी.एन.एस. के तहत भी गिरफ्तार किया है। पुलिस ने बताया कि गैंती गैंग के चोर सोने-चांदी के जेवरातों को अपने परिचित ज्वेलर्स दुकान के कारिगरों और वर्कर हर्ष कुमार बंजारे उर्फ गोविंदा, मोहम्मद आसिफ सिद्दीकी, मेवालाल कश्यप, हेमंत कश्यप, कमलजीत कश्यप उर्फ जीतू और जय कुमार सोनी को देते थे, जिसके बाद यह सभी जेवरातों को गलाकर ज्वेलर्स दुकान के मालिक बिलासपुर निवासी राजेश कुमार सोनी, उरला निवासी भूषण कुमार देवांगन और मुंगेली निवासी जय कुमार सोनी को बेच देते थे।

पुलिस ने 35 लाख का सामान किया जब्त

पुलिस ने सभी गिरफ्तार आरोपियों के निशानदेही पर उनके कब्जे से 316 ग्राम सोना, 2 किलो 900 ग्राम चांदी, घटना प्रयुक्त 5 नग मोबाइल फोन, 2 नग दोपहिया और वारदात में इस्तेमाल की गई गैंती, पेचकस जब्त किया है, जिसकी कीमत 35 लाख रुपये आंकी गई है। सभी आरोपियों के खिलाफ धारा 331(4), 305, 3(5) बी.एन.एस. के तहत कार्रवाई की जा रही है।

पुलिस ने चोरी की गाड़ी को किया जब्त, मकान मालकों को नोटिस जारी

बता दें कि पुलिस ने इस मामले में कार्रवाई करते हुए चोरी को अंजाम देने के लिए खरीदी गई दो दोपहिया को भी जब्त किया है, साथ ही जिनसे यह वाहन खरीदा गया है, उनकी पतासाजी कर अग्रिम कार्रवाई की जा रही है। इसके अलावा जिन मकानों में यह सभी आरोपी किराए पर रहे थे, उन मकान मालिकों को नोटिस जारी किया गया है, क्योंकि उन्होंने पुलिस को किराएदारों की जानकारी नहीं दी थी।

आवासीय कॉलोनियों को भी नोटिस तलब

गौरतलब है कि आरोपियों ने राजधानी की जिन-जिन आवासीय कॉलोनियों में चोरी की घटना को अंजाम दिया है उन कॉलोनियों द्वारा पुलिस द्वारा निर्देशित सुरक्षा इंतजामों का उल्लंघन किया जाना पाए जाने पर उन्हें भी नोटिस जारी किया गया है।

किसानों को 40 साल बाद हाईकोर्ट से मिला न्याय, जमीन अधिग्रहण के लिए आदेश जारी

बिलासपुर-  जांजगीर-चांपा जिले के किसानों को आखिरकार 40 साल बाद न्याय मिला है. छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने किसानों के पक्ष में फैसला सुनाते हुए शासन और जिला प्रशासन को निर्देश दिया है कि तीन महीने के भीतर जमीन का सीमांकन कर अधिग्रहण की प्रक्रिया पूरी की जाए.

बता दें कि जांजगीर-चांपा जिले के जैजैपुर ब्लाक के ग्राम खम्हारडीह, मुरलीडी निवासी किसान भागवत दास, ताराचंद, दुखवा केवट सहित 10 किसानों की जमीन में वर्ष 1983-84 में नंदेली से कचंदा तक डब्ल्यूबीएम सड़क निर्माण करा दिया गया. जमीन के एवज में मुआवजा न दिए जाने पर भूमि स्वामियों ने अधिवक्ता योगेश चंद्रा के माध्यम से हाई कोर्ट में याचिका लगाई. जिसमें लोक निर्माण विभाग, कलेक्टर, भूअर्जन अधिकारी सहित अन्य को पक्षकार बनाया गया.

मामले की सुनवाई के दौरान शासन की ओर से जवाब पेश कर कहा गया कि उक्त सड़क आपदा राहत योजना के तहत बनाया गया. इसके लिए भूमि स्वामी स्वेच्छा से जमीन दिया है, साथ ही विलंब से याचिका पेश करने की बात कहते हुए याचिका खारिज करने की मांग की गई.

मामले में जस्टिस बीड़ी गुरु ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद अपने आदेश में कहा विधि को दृष्टिगत राज्य को किसी के सम्पति में अतिक्रमण की अनुमति नहीं दी जा सकती है. शासन को याचिकाकर्ता से संबंधित क्षेत्र का सीमांकन करना होगा. इसका उपयोग सड़क निर्माण किया गया. उक्त क्षेत्र के अधिग्रहण के लिए कार्रवाई की जाए. सीमांकन तीन माह की अवधि के भीतर पूरा किया जाए और उसके बाद भूमि अधिग्रहण की कार्यवाही तैयार की जायेगी, उचित अवधि के भीतर पूरा करने का निर्देश दिया है.

निष्पक्ष और शांतिपूर्ण निर्वाचन के लिए आयोग कटिबद्ध : राज्य निर्वाचन आयुक्त अजय सिंह

रायपुर-    राज्य निर्वाचन आयुक्त अजय सिंह की अध्यक्षता में आज जिला पंचायत कांकेर के सभाकक्ष में सुबह 11.00 बजे से नगरीय निकायों एवं त्रिस्तरीय पंचायतों में आगामी आम/उप निर्वाचन अंतर्गत निर्वाचन कार्यों की तैयारियों के संबंध में समीक्षा की गई। बैठक में बस्तर संभाग के संभाग आयुक्त डोमन सिंह, पुलिस महानिरीक्षक सुंदरराज पी., पुलिस विभाग के नोडल अधिकारी ओ.पी. पाल, आयोग के सचिव डॉ. सर्वेश्वर नरेन्द्र भुरे सहित संभाग के सभी जिला के कलेक्टर एवं पुलिस अधीक्षक तथा उप जिला निर्वाचन अधिकारी शामिल हुए। इस दौरान राज्य निर्वाचन आयुक्त ने सभी अधिकारियों को बस्तर संभाग में पारदर्शिता, निष्पक्षता के साथ शांतिपूर्ण निर्वाचन सम्पन्न कराने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि नगरीय निकायों में प्रति एक हजार मतदाता के लिए एक मतदान केन्द्र और पंचायतों में निर्वाचन के लिए प्रति 500 मतदाता हेतु एक मतदान केन्द्र बनाया जाय । साथ ही यह भी कहा कि सभी पात्र मतदाताओं के नाम निर्वाचक नामावली में अनिवार्य रूप से जोड़े जाएं। राज्य निर्वाचन आयुक्त ने बैठक में मुख्य रूप से चुनाव के सुचारू रूप से संचालन हेतु चुनाव की तैयारी, सुरक्षा व्यवस्था, मतदान केन्द्रों की स्थिति और निर्वाचन प्रक्रिया से जुड़ी महत्वपूर्ण तैयारियों की समीक्षा की । इस बैठक के माध्यम से चुनाव के सुचारू और सुरक्षित संचालन को सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक निर्देश दिए गए।

राज्य निर्वाचन आयुक्त श्री सिंह ने संबोधित करते हुए कहा कि बस्तर संभाग के साथ ही प्रदेश के सभी संभागों में निर्वाचन तैयारियों की समीक्षा सम्पन्न हो गई है। आगामी समय में चुनाव की तैयारियों के संबंध में मुख्य सचिव और डीजीपी के साथ आयोग की संयुक्त रूप से बैठक की जाएगी, जिसके तहत चुनावी प्रक्रिया के दौरान होने वाली चुनौतियों और संभावित समस्याओं पर भी चर्चा की जाएगी । उन्होंने अधिकारियों को चुनाव के दौरान शांतिपूर्ण माहौल बनाए रखने, मतदाता जागरूकता बढ़ाने और मतदान प्रक्रिया को पारदर्शी और निष्पक्ष बनाने के निर्देश दिए। साथ ही यह भी कहा कि 01 अक्टूबर 2024 की स्थिति में 18 वर्ष की आयु पूर्ण कर चुके सभी पात्र लोगों के नाम निर्वाचक नामावली में अनिवार्य रूप से होने चाहिए।

इस दौरान बैठक में बस्तर संभागायुक्त श्री सिंह ने संभाग के सभी जिलों में की जा रही निर्वाचन की तैयारियों की संक्षिप्त जानकारी दी। पुलिस महानिरीक्षक बस्तर संभाग सुंदरराज ने निर्वाचन के दौरान की जाने वाली सुरक्षा व्यवस्था के संबंध जानकारी दी। साथ ही संभाग के सभी जिलों के कलेक्टर और पुलिस अधीक्षक ने पावर पॉइंट प्रेजेंटेशन के माध्यम से अपने-अपने जिलों के निर्वाचन संबंधी तैयारियों की अद्यतन स्थिति से आयोग को अवगत कराया।

राज्य निर्वाचन आयुक्त अजय सिंह ने सुरक्षा उपायों और कानून-व्यवस्था को सुदृढ़ करने की आवश्यकता पर भी जोर दिया। उन्होंने मतदान केंद्रों पर सुविधाओं, कर्मचारियों की तैनाती, और निर्वाचन सामग्री की उपलब्धता की भी समीक्षा की ताकि किसी भी तरह की असुविधा न हो। बैठक में यह भी सुनिश्चित किया गया कि सभी संबंधित अधिकारियों के बीच समन्वय और सहयोग बना रहे ताकि चुनाव प्रक्रिया बिना किसी बाधा के पूरी हो सके।