भारत लाया जाएगा 26/11 हमले का आरोपी तहव्वुर राणा, अमेरिकी कोर्ट ने दी प्रत्यर्पण की मंजूरी
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26/11 मुंबई हमले के आरोपी तहव्वुर राणा को भारत लाने का रास्ता साफ हो गया है। अमेरिकी कोर्ट ने तहव्वुर के भारत प्रत्यर्पण को मंजूरी दे दी है। अब एनआईए अमेरिकी सरकार से संपर्क के मदद से तहव्वुर को जल्द से जल्द भारत लाएगा।भारत ने 10 जून, 2020 को प्रत्यर्पण की दृष्टि से 62 वर्षीय राणा की अस्थायी गिरफ्तारी की मांग करते हुए शिकायत दर्ज कराई थी। बाइडन प्रशासन ने राणा के भारत प्रत्यर्पण का समर्थन किया था और उसे मंजूरी दी थी।
कोर्ट ने 48 पेज के आदेश में दिया प्रत्यर्पण
यूएस डिस्ट्रिक्ट कोर्ट सेंट्रल डिस्ट्रिक्ट ऑफ कैलिफोर्निया की मजिस्ट्रेट जज जैकलीन चूलजियान ने 16 मई (मंगलवार) को 48 पेज के आदेश में कहा कि न्यायालय ने अनुरोध के समर्थन और विरोध में प्रस्तुत सभी दस्तावेजों की समीक्षा की है और उन पर एवं सुनवाई में प्रस्तुत तर्कों पर विचार किया है। न्यायाधीश ने कहा कि अदालत का निष्कर्ष है कि राणा उन अपराधों के लिए प्रत्यर्पण योग्य है जिसमें उसके प्रत्यर्पण का अनुरोध किया गया है। कोर्ट ने माना कि राणा का प्रत्यर्पण जायज है। भारत की ओर से जो कारण प्रस्तुत किए गए उससे ये प्रतीत होता है कि राणा से पूछताछ की जरुरत है।आदेश बुधवार (17 मई) को जारी किया गया।
कोर्ट में बाइडेन सरकार के वकीलों का तर्क
कोर्ट में इस मामले की सुनवाई के दौरान बाइडेन सरकार के वकीलों ने तर्क दिया कि तहव्वुर राणा को पता था कि उसका बचपन का साथी पाकिस्तानी-अमेरिकी डेविड कोलमैन हेडली आतंकी संगठन लश्कर का मेंबर है। इसके बाद भी वो हेडली के साथ रहा।उसकी गतिविधियों को छिपाने के लिए राणा ने कई प्रयास किए। इसके अलावा आतंकी संगठन लश्कर ए तैय्यबा का समर्थन भी करता है। कोर्ट को ये भी बताया गया कि हेडली की जितनी बैठकें होती थी, हमलों की बात होती थी, उसकी रणनीति के बारे में सब कुछ तहव्वुर राणा को पता होता था। अमेरिकी सरकार ने कोर्ट के सामने दावा किया कि राणा भी उस साजिश का हिस्सा था।
26/11 हमलों में भूमिका की जांच कर रही है NIA
भारत की राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) 2008 में पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा के आतंकवादियों के तरफ से किए गए 26/11 के हमलों में उसकी भूमिका की जांच कर रही है।एआईए ने कहा है कि वह उसे भारत लाने के लिए कार्यवाही शुरू करने के लिए तैयार है।
हमले में कुल 166 लोग मारे गए थे
बता दें कि मुंबई आतंकी हमलों में छह अमेरिकियों सहित कुल 166 लोग मारे गए थे। इन हमलों को 10 पाकिस्तानी आतंकवादियों ने अंजाम दिया था। ये हमले मुंबई के प्रतिष्ठित और महत्वपूर्ण स्थानों पर 60 घंटे से अधिक समय तक जारी रहे थे। इन हमलों में अजमल कसाब नाम का आतंकवादी जीवित पकड़ा गया था, जिसे 21 नवंबर 2012 को भारत में फांसी की सजा दी गई थी। शेष आतंकवादियों को हमलों के दौरान भारतीय सुरक्षाबलों ने ढेर कर दिया था।
May 18 2023, 10:31