पुलिस के सामने पेश हुए बृजभूषण शरण सिंह, पहलवानों की शिकायत पर बोले - सभी आरोप झूठे और बेबुनियाद

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महिला पहलवानों से यौन शोषण के आरोपी भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह दिल्ली पुलिस के सामने पेश हुए। दिल्ली पुलिस ने बृज भूषण का बयान दर्ज किया है।उनसे कुछ दस्तावेज भी मांगे हैं। दोबारा जरूरत होने पर फिर से बयान दर्ज होंगे। बृजभूषण शरण सिंह ने पुलिस के सामने दिए बयान में अपने ऊपर लगे आरोपों को नकारा है।

डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ पहलवान अभी भी जंतर-मंतर पर प्रोटेस्ट कर रहे हैं। सुप्रीम कोर्ट में मामला पहुंचने के बाद दिल्ली पुलिस ने बृजभूषण के खिलाफ दो एफआईआर दर्ज की थी। आज डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष का बयान दर्ज किया गया है।

एसआईटी के सामने दर्ज कराया बयान

बृजभूषण शरण सिंह ने दिल्ली पुलिस की एसआईटी के सामने अपना बयान दर्ज कराया है। दिल्ली पुलिस ने महिला पहलवान के आरोपों की जांच के लिए महिला डीसीपी की निगरानी में 10 सदस्यीय विशेष जांच टीम (एसआईटी) का गठन किया। इसमें चार महिला पु्लिस अधिकारी और छह पुलिसवाले शामिल हैं। एसआईटी का सुपरविजन महिला डीसीपी करेंगी। डब्ल्यूएफआई असिस्टेंट सेक्रेटरी विनोद तोमर के बयान भी दर्ज किए गए हैं। दिल्ली पुलिस की एफआईआर में विनोद तोमर को भी आरोपी बनाया गया है। बृजभूषण शरण सिंह ने अपनी सफाई में आने वाले कुछ दिनों में ऑडियो, वीडियो और डिजिटल एविडेंस पुलिस को सौंपेंगे।

बृजभूषण पर क्या हैं आरोप ?

भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष और बीजेपी सांसद बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ 7 महिला पहलवानों ने यौन शोषण का आरोप लगाया है। इन पहलवानों की शिकायत पर दिल्ली के कनॉट प्लेस थाने में बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ मुकदमा लिखा गया है। पीड़ितों में एक नाबालिग भी है, जिसके मामले में सिंह के खिलाफ यौन अपराधों से बाल संरक्षण अधिनियम (पॉक्सो) के तहत केस दर्ज हुआ है। बृजभूषण शरण के खिलाफ पुलिस एफआईआर दर्ज करवाने के लिए पहलवानों को सुप्रीम कोर्ट जाना पड़ा था।

ट्विटर को जल्द मिलने वाला है नया सीईओ, मस्क ने की पद छोड़ने की घोषणा, जानें कौन संभालेगा कमान

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एलन मस्‍क ने टि्वटर को संभालने के लिए नए सीईओ की खोज कर ली है। इसके साथ ही सीईओ एलन मस्क ने अपना पद छोड़ने की घोषणा भी कर दी है। मस्क ने कहा कि उन्होंने ट्विटर का नया सीईओ नियुक्त कर लिया है। हालांकि, उन्होंने अभी नए सीईओ के नाम की घोषणा नहीं की है। माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म के मालिक मस्क ने संकेत दिए हैं कि ट्विटर की नई सीईओ एक महिला होगी।

एलन मस्क ने बिना किसी व्यक्ति का नाम लिए अगले कुछ हफ्तों में इस बदलाव को करने की बात कही है। मस्क ने एक ट्वीट में कहा, "यह घोषणा करते हुए खुशी हो रही है कि मैंने ट्विटर के लिए एक नए सीईओ को नियुक्त किया है। वह अगले 6 सप्ताह में पद का कार्यभार संभालेंगी!" मस्क ने ट्वीट कर कहा कि वे खुद ट्विटर के एग्जीक्यूटिव चेयरमैन और चीफ टेक्नोलॉजी ऑफिसर होंगे।मस्क ने शुरू में ही कहा था कि उनकी ट्विटर के शीर्ष पर बने रहने की योजना नहीं है और समय की प्रतिबद्धता को कम करना उनकी योजना थी।

मस्क के इस ट्वीट के बाद कई सवाल उठ रहे हैं कि आखिर कौन होगा नया सीईओ? हालांकि, मस्क ने नई सीईओ के नाम का उजागर नहीं किया है लेकिन वॉल स्ट्रीट जर्नल ने अपनी रिपोर्ट में दावा किया है कि एलन मस्क ने कॉमकास्‍ट एनबीसी यूनिवर्सल की एडवारटाइजिंग हेड लिंडा याकारिनो से नौकरी के लिए बातचीत की थी। हालांकि लिंडा की ओर से अभी तक इस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है।

मस्क लंबे समय से ट्विटर के लिए नए सीईओ की तलाश में थे। उन्होंने पिछले साल दिसंबर में एक पोल के जरिए लोगों से पूछा था कि क्या उन्हें सीईओ का पद छोड़ देना चाहिए। इस पोल पर 57.5% लोगों ने उन्हें पद छोड़ने की सलाह दी थी। इसके बाद मस्क ने कहा था कि जैसे ही मुझे इस काम के लिए कोई मिल जाएगा, मैं इस्तीफा दे दूंगा। मस्क, ने नवंबर में कहा था कि वह ट्विटर पर अपना समय कम करने की उम्मीद कर रहे हैं।

पहलवान बजरंग पुनिया का आरोप, विरोध प्रदर्शन कर रहे खिलाड़ियों के फोन नंबर किए जा रहे हैं ट्रैक

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भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ पहलवानों का विरोध प्रदर्शन जंतर-मंतर पर जारी है। इस बीच बजरंग पुनिया ने आरोप लगाया है कि धरने पर बैठे खिलाड़ियों के फोन नंबर ट्रैक किए जा रहे हैं। बता दें कि पहलवानों ने गुरुवार को बांहों और सिर पर काली पट्टी बांध कर अपना विरोध जताया।

जंतर-मंतर पर विरोध प्रदर्शन के 18वें दिन बजरंग, विनेश फोगाट, साक्षी मलिक, सत्यव्रत कादियान, जितेंद्र किन्हा के साथ मौजूद अन्य पहलवानों ने अपने सिर और बाहों पर काली पट्टी बांधी। इस मौके पर पहलवानों के समर्थक भी अपनी बाहों पर काली पट्टी बांधे हुए थे। बृजभूषण सिंह के खिलाफ कार्रवाई न होने के विरोध में पहलवानों ने अपने माथे पर काली पट्टी बांधी, जबकि कुछ समर्थक अपनी बांह पर ये पट्टी बांधे नजर आए। 

इस दौरान पत्रकारों से बात करते हुए पुनिया ने कहा, आजकल हमारे फोन नंबरों को ट्रैक किया जा रहा है। हमारे ऐसा व्यवहार किया जा रहा है कि लगता हो जैसे हमने कोई अपराध किया हो। मैं आपको बता रहा हूं कि जो भी हमारे संपर्क में है उसको ट्रैक किया जा रहा है।

बजरंग पुनिया ने आगे कहा कि बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ आज हम काला दिवस मना रहे हैं। हमें अपनी जीत पर पूरा भरोसा है। क्योंकि हमारी लड़ाई में हमारा देश हमारे साथख खड़ा है। हर दिन हमारा विरोध प्रदर्शन जोर पकड़ रहा है और हम न्याय मिलने तक लड़ाई जारी रखेंगे।

*सीबीएसई की 12वीं कक्षा का रिजल्ट हुआ घोषित, ऐसे करें चेक*

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केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने कक्षा 12वीं के नतीजे घोषित कर दिए हैं।स्टूडेंट्स आधिकारिक वेबसाइट के जरिए अपने नतीजे चेक कर सकते हैं। परिणाम आधिकारिक वेबसाइ cbseresults.nic.in पर जारी किया गया है।

सीबीएसई की आधिकारिक वेबसाइट results.cbse.nic.in और cbseresuts.nic.in के साथ ही सीबीएसई के नतीजे डिजिलॉकर पर भी उपलब्ध रहेंगे।छात्रों को नतीजे जानने के लिए रोल नंबर, स्कूल नंबर, डेट ऑफ बर्थ और एडमिट कार्ड आईडी की जरूरत पड़ेगी।

सीबीएसई की कक्षा 10वीं, 12वीं की बोर्ड परीक्षा 2023 ,14 फरवरी से शुरू हुई थी। कक्षा 10 की परीक्षा 21 मार्च को पूरी हुई तो वहीं कक्षा 12 की परीक्षा 5 अप्रैल तक चली।

विपक्षी एकता की मुहिम में शामिल नहीं होगी बीजेडी, अकेले लड़ेगी लोकसभा चुनाव, पीएम से मुलाकात के बाद बोले नवीन पटनायक

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बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मुलाकात के बाद ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने गुरूवार को दिल्ली पहुंचे। नवीन पटनायक ने दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की।पीएम मोदी से मुलाकात करने के बाद लोकसभा चुनाव को लेकर बड़ा बयान दिया। उन्होंने विपक्ष के साथ काम करने की संभावनाओं को नकार दिया। ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने आज कहा कि उनकी पार्टी विपक्षी दलों की एकता की मुहिम में शामिल नहीं है। बीजेडी लोकसभा चुनाव किसी से गठबंधन किए बगैर अकेले लड़ेगी।

वहीं, नवीन पटनायक ने पीएम मोदी से मुलाकात को लेकर कहा कि उनसे ओडिशा की मांग के बारे में चर्चा की। मैंने उनसे श्री जगन्नाथ अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट के बारे में बात की जिसे हम पुरी में स्थापित करना चाहते हैं, एयरपोर्ट पर सीमा चिन्हित किया गया है। भुवनेश्वर में अभी काफी ट्रैफिक हो रहा है तो हम वहां का विस्तार करना चाहते हैं, प्रधानमंत्री ने मदद करने का आश्वासन दिया है।

ओडिशा के मुख्यमंत्री चार दिवसीय दौरे पर बुधवार शाम राष्ट्रीय राजधानी पहुंचे हैं। कहा जा रहा है कि इस दौरान वे कई नेताओं से मुलाकात कर सकते हैं। ओडिशा के मुख्यमंत्री अपने बिहार के समकक्ष नीतीश कुमार से दो दिन पहले हुई मुलाकात के बाद दिल्ली में कई विपक्षी नेताओं से मिलने की तैयारी में हैं। ऐसे में विपक्षी एकता की मुहीम को लेकर अटकलें लगाई जा रही है।

टिल्लू हत्याकांड मामले में पुलिस का एक्शन, हत्या में शामिल 2 कैदी अरेस्ट, दोनों ने ऐसे की थी मदद

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दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल गैंगस्टर टिल्लू ताजपुरिया हत्या मामले में तिहाड़ जेल से दो और कैदियों को गिरफ्तार किया है। इनकी पहचान चवन्नी और आतउर रहमान के रूप में हुई है।दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल गुरुवार को एक बार फिर तिहाड़ जेल पहुंची थी। यहां पुलिस ने आरोपियों के साथ क्राइम सीन को रिक्रिएट किया। वहीं इस मामले में जेल में बंद चवन्नी और अताउर रहमान को गिरफ्तार कर लिया।

पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि चवन्नी पर आरोप है कि उसने टिल्लू की हत्या के दौरान चादर से सीसीटीवी छुपाने की कोशिश की थी। जिससे की आरोपी सीसीटीवी कैमरे की नजर से बच सके। इसके अलावा एक आरोपी को उसी चादर से टिल्लू के बैरेक में कूदाने में भी मदद की थी। वहीं अताउर रहमान पर आरोप है कि उसने हत्याकांड को अंजाम देने के बाद चाकू छुपाने में मदद की।

हत्या में इस्तेमाल हथियारों बरामद

पुलिस के अनुसार, विनोद एक स्थानीय गैंगस्टर है और मारपीट के कुछ मामलों में शामिल रहा है, जबकि रहमान गुजरात से अपहरण के एक मामले में दोषी है। टिल्लू के हमलावरों ने उसकी हत्या करने के लिए देसी हथियारों का इस्तेमाल किया था। जिन्हें अब पुलिस ने जब्त कर लिया है।

2 साल पहले कर ली गई थी टिल्लू की हत्या की प्लानिंग

पुलिस पूछताछ में आरोपियों ने कई राज खोले हैं उसमें से एक ये है कि टिल्लू की हत्या की प्लानिंग चंद महीने पहले नहीं बल्कि 2 साल पहले कर ली गई थी। आरोपी 2 साल पहले टिल्लू को रास्ते से हटाना चाहते थे, लेकिन उस समय ये संभव नहीं हो सका। इसका कारण ये रहा कि उस समय दोनों तरफ के गैंगस्टर को अलग-अलग जेलों में बंद कर दिया गया था। जिस वजह से आरोपी टिल्लू की हत्या करने में नाकामयाब हो गए, लेकिन एक बार फिर जब तिहाड़ में मौका मिला तो प्लानिंग कर उसकीहत्या कर दी।

कंडोम और प्रेग्नेंसी टेस्ट किट Prega News जैसे उत्पाद बनाने वाली फार्मा सेक्टर की दिग्गज कंपनी मैनकाइंड फार्मा के दफ्तर में इनकम टैक्स की रेड के बाद गिरे शेयरों के भाव


फार्मास्यूटिकल कंपनी मैनकाइंड फार्मा की शेयर बाजार में लिस्टिंग के दो दिन बाद ही बुरी खबर आई है। मैनकाइंड फार्मा के दिल्ली स्थित दफ्तर पर इनकम टैक्स डिपॉर्टमेंट का छापा पड़ा है। सीएनबीसी-टीवी18 ने गुरुवार को सूत्रों का हवाला देते हुए यह जानकारी दी है। इस छापे की खबरों के बाद आज कंपनी के शेयरों में 5.5% तक की गिरावट आई। हालांकि, 11 बजे के करीब मैनकाइंड के शेयर 1.66 फीसद टूटकर 1359 रुपये पर ट्रेड कर रहे थे। बता दें मैनकाइंड फार्मा और आईटी विभाग ने टिप्पणी के लिए रॉयटर्स के मेल का तुरंत जवाब नहीं दिया।

मैनकाइंड फार्मा के शेयर मंगलवार को स्टॉक एक्सचेंज में लिस्ट हुए थे। शेयरों में जबरदस्त उछाल की वजह से मैनफोर्स कंडोम के निर्माता का बाजार मूल्य 569.76 अरब ($ 6.97 बिलियन) पर लगभग 32% बढ़ गया। Manforce Condoms, प्रेग्नेंसी टेस्ट किट Prega News जैसे उत्पाद बनाने वाली फार्मा सेक्टर की दिग्गज कंपनी मैनकाइंड फार्मा की शुरुआत 1995 में हुई थी। इसके फाउंडर रमेश जुनेजा हैं। मैनकाइंड फार्मा का पूरा फोकस घरेलू मार्केट पर है। वहीं FY2022 के आंकड़ों के मुताबिक कंपनी की कुल रेवेन्यू में 97.60% हिस्सेदारी घरेलू बाजार का है। इस कंपनी फार्मास्यूटिकल्स कारोबार में 36 ब्रांड्स डेवलप किए हैं।

बता दें कंपनी के शेयर 1080 रुपये के आईपीओ प्राइस से 20 पर्सेंट से ज्यादा पर लिस्ट हुए। बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) में करीब 32 पर्सेंट की तेजी के साथ 1424.05 रुपये पर बंद हुए। कंपनी के शेयरों ने पहले ही दिन हर शेयर पर करीब 345 रुपये का फायदा दिलाया।

महाराष्ट्र के राजनीतिक संकट से जुड़ी याचिकाओं पर फैसला के लिए सात जजों की बड़ी बेंच को सुप्रीम कोर्ट की संविधान पीठ ने सौंपा, राज्यपाल की भूमिका पर उठाए सवाल

सुप्रीम कोर्ट की संविधान पीठ ने महाराष्ट्र के राजनीतिक संकट का मामला सात जजों की बड़ी बेंच को सौंप दिया है। 2022 के महाराष्ट्र राजनीतिक संकट को लेकर शिवसेना के उद्धव ठाकरे और एकनाथ शिंदे धड़ों की ओर की याचिकाएं दायर की गई थीं। इसी को लेकर आज सुप्रीम कोर्ट का फैसला आया है।

सुप्रीम कोर्ट ने मामले में टिप्पणी करते हुए कहा कि सदन के स्पीकर द्वारा शिंदे गुट की ओर से प्रस्तावित स्पीकर गोगावले को चीफ व्हिप नियुक्त करना अवैध फैसला था। कोर्ट ने कहा कि स्पीकर को सिर्फ राजनीतिक दल की ओर से नियुक्त व्हिप को ही मान्यता देनी चाहिए थी।

राज्यपाल पर कोर्ट ने क्या कहा?

इस पूरे घटनाक्रम को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने राज्यपाल की भूमिका पर भी सवाल उठाए। कोर्ट ने कहा कि राज्यपाल के पास विधानसभा में फ्लोर टेस्ट बुलाने के लिए कोई पुख्ता आधार नहीं था। फ्लोर टेस्ट को किसी पार्टी के आंतरिक विवाद को सुलझाने के लिए इस्तेमाल नहीं कर सकते। 

सुप्रीम कोर्ट का कहना है कि राज्यपाल के पास ऐसा कोई संचार नहीं था जिससे यह संकेत मिले कि असंतुष्ट विधायक सरकार से समर्थन वापस लेना चाहते हैं। राज्यपाल ने शिवसेना के विधायकों के एक गुट के प्रस्ताव पर भरोसा करके यह निष्कर्ष निकाला कि उद्धव ठाकरे अधिकांश विधायकों का समर्थन खो चुके हैं।

गौरतलब है कि शीर्ष अदालत ने 17 फरवरी को महाराष्ट्र राजनीतिक संकट से संबंधित याचिकाओं को सात-सदस्यीय संविधान पीठ के सुपुर्द करने का आग्रह ठुकरा दिया था।

क्या है मामला?

चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पांच-सदस्यीय संविधान पीठ महाराष्ट्र के उस राजनीतिक संकट से जुड़ी याचिकाओं पर फैसला दिया है, जिसकी वजह से उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली तत्कालीन महा विकास आघाड़ी (एमवीए) गठबंधन सरकार गिर गई थी। इस संविधान पीठ में जस्टिस एमआर शाह, जस्टिस कृष्ण मुरारी, जस्टिस हिमा कोहली और जस्टिस पीएस नरसिम्हा भी शामिल हैं।

संविधान पीठ ने 16 मार्च, 2023 को संबंधित याचिकाओं पर सुनवाई पूरी करने के बाद अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था। इस मामले में अंतिम सुनवाई 21 फरवरी को शुरू हुई थी और नौ दिनों तक दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद फैसला सुरक्षित रखा गया था।

सुनवाई के आखिरी दिन क्या बोली थी संविधान पीठ?

शीर्ष अदालत ने सुनवाई के अंतिम दिन आश्चर्य व्यक्त किया था कि वह उद्धव ठाकरे की सरकार को कैसे बहाल कर सकती है, जब तत्कालीन मुख्यमंत्री ने सदन में बहुमत परीक्षण का सामना करने से पहले ही इस्तीफा दे दिया था। ठाकरे गुट ने सुनवाई के दौरान न्यायालय से आग्रह किया था कि वह 2016 के अपने उसी फैसले की तरह उनकी सरकार बहाल कर दे, जैसे उसने अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री नबाम तुकी की सरकार बहाल की थी।

किस पक्ष से किसने लड़ा केस?

ठाकरे गुट की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल, अभिषेक मनु सिंघवी और देवदत्त कामत के साथ वकील अमित आनंद तिवारी ने शीर्ष अदालत के समक्ष पक्ष रखा था। दूसरी तरफ एकनाथ शिंदे गुट का की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता नीरज किशन कौल, हरीश साल्वे, महेश जेठमलानी और अधिवक्ता अभिकल्प प्रताप सिंह ने पक्ष रखा था। वहीं, सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता राज्य के राज्यपाल कार्यालय की ओर से पेश हुए।

दिल्ली में अफसरों पर नियंत्रण को लेकर सुप्रीम कोर्ट से आए फैसले से गदगद आम आदमी पार्टी (आप) ने चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ को बताया देश का हीरो

अफसरों पर नियंत्रण को लेकर सुप्रीम कोर्ट से आए फैसले से आम आदमी पार्टी (आप) गदगद है। मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से लेकर उनके मंत्रियों और पार्टी नेताओं ने इस फैसले को अपनी जीत बताया है। 'आप' ने कोर्ट के फैसले को मोदी सरकार के लिए तमाचा करार देते हुए चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की जमकर तारीफ की। आप के प्रवक्ता और दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने सीजेआई को सबसे बड़ा नायक बताते हुए कहा कि आने वाले समय में जजों की भूमिका पर भी फिल्में बनेंगी।

सौरभ भारद्वाज ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला मोदी सरकार को तमाचा है, उनको दिल्ली की जनता का हक चोरी करने के लिए सजा मिली है। उन्होंने सीजेआई चंद्रचूड़ को देश का नायक बताते हुए कहा, 'हम जब छोटे थे तो फिल्मों में देखते थे कि अमिताभ बच्चन पुलिस इंस्पेक्टर बनते थे तो हम छोटे बच्चे भी सोचते थे कि बड़े होकर पुलिस इंस्पेक्टर बनेंगे। किसी फिल्म में दूसरे अभिनेता डॉक्टर थे तो लगता था कि डॉक्टर बनना है। एक फिल्म में अभिनेता वकील बने तो बच्चों को लगा कि काम तो वकील का होना चाहिए। इससे देश को बदला जा सकता है।'

केजरीवाल के मंत्री ने कहा, 'आज मुझे लगता है कि देश का एक एक बच्चा जो ज्यूडिश्यरी और हालातों की समझ रखता है वह कहेगा कि देश में कोई हीरो है तो चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ साहब हैं, कहेंगे कि अब तो जज बनना है। वह दिन दूर नहीं जब फिल्मों में जज की भूमिका में नायक नजर आएंगे। आज देश को एक बहुत बड़े नायक के रूप में चंद्रचूड़ जी मिले हैं। मैं दिल्ली की जनता की ओर से उनका बहुत बहुत धन्यवाद करूंगा। बेंच के अंदर जो 5 न्यायाधीश थे उनसभी का धन्यवाद करेंगे। दिल्ली की जनता आज सुप्रीम कोर्ट के आगे नतमस्तक है।'

दिल्ली सरकार के मंत्री भारद्वाज ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले को याद रखा जाएगा। उन्होंने कहा, '2014 से चल रही दिल्ली के लोगों की लड़ाई में मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जीत गए। जब-जब देश पर विपत्ति आएगी, संविधान को ताक पर रखा जाएगा, तब-तब एक संस्था है जो व्यवस्था स्थापित करेगा, देश को बचाएगा-उच्चतम न्यायालय। ये फैसला याद रखा जाएगा।' दिल्ली की एक अन्य मंत्री आतिशी ने कहा, 'अगर निर्वाचित सरकार की शक्तियां छीन ली जाए तो जनता के वोट का कोई मतलब नहीं रह जाता है। आज सुप्रीम कोर्ट ने मोदी सरकार को करारा तमाचा मारा है। अगर मोदी सरकार लोकतांत्रिक तरीके से चुनी हुई सरकार की शक्तियां छीनेगी तो SC संविधान बचाने के लिए खड़ी है। आज SC ने लोकतंत्र-संविधान को बचाया है।'

इमरान खान को बड़ी राहत, सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद रिहा, गिरफ्तारी को बताया था अवैध

#Imrankhanrelease 

पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है। सुप्रीम कोर्ट ने उनकी गिरफ्तारी को अवैध करार दिया है। इससे पहले चीफ जस्टिस ने आदेश दिया कि उन्हें तुरंत रिहा किया जाए। 

सुप्रीम कोर्ट ने सख़्त लहजे में कहा है कि अदालत के परिसर से इमरान की गिरफ्तारी डिस्ग्रेसफुल- यानी अपमानजनक है। चीफ जस्टिस की अगुआई वाली तीन जजों की बेंच ने इमरान खान की गिरफ्तारी को गैरकानूनी बताते हुए नेशनल अकाउंटेबिलिटी ब्यूरो (नैब) से कहा- इमरान को फौरन रिहा करें। कोर्ट के आदेश के बाद इमरान खान को रिहा कर दिया है।

इमरान खान का गंभीर आरोप

इमरान खान ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद कहा कि मेरे साथ बुरा बर्ताव किया गया है।। मुझे डंडे मारे गए हैं। मुझे लाठियों से पीटा गया। मुझे हाईकोर्ट से अगवा कर लिया गया।

नैब को लगाई फटकार

इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने सेना को जमकर फटकार लगाई। इसके साथ ही कोर्ट ने इमरान की गिरफ्तारी को अवैध ठहराया है। कोर्ट ने एनएबी की कार्रवाई पर नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि हाईकोर्ट में जो कुछ भी हुआ, वह न्यायपालिका की छवि पर हमला था। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि क्या इस तरह से किसी को गिरफ्तार किया जा सकता है? चीफ जस्टिस ऑफ पाकिस्तान ने कहा कि नैब ने कानून तोड़ा और कोर्ट का अपमान किया है। नैब ने जो किया अब उसे कोर्ट देखेगी। वहीं, नैब की ओर से दलील दी गई कि यह बहुत ही संवेदनशील मामला है।