यातायात नियम तोड़ने पर लगातार कार्रवाई, 2435 ई-चालान
लखनऊ। राजधानी में यातायात माह 2025 के दौरान नियम तोड़ने वालों पर पुलिस की सख्ती लगातार जारी है। शहर में तैनात यातायात निरीक्षक और उप निरीक्षक प्रतिदिन लोगों को जागरूक कर रहे हैं, लेकिन इसके बावजूद कई वाहन चालक नियमों की अनदेखी कर रहे हैं। गुरुवार को यातायात पुलिस ने अलग-अलग चौराहों और तिराहों पर चेकिंग अभियान चलाया, जिसमें कुल 2435 ई-चालान किए गए। 235 को नो-पार्किंग नियम तोड़ने पर चालान कार्रवाई के दौरान 1278 लोगों को बिना हेल्मेट, 235 को नो-पार्किंग नियम तोड़ने, 79 को दोषपूर्ण नंबर प्लेट, 29 को बिना बीमा, 56 को रॉन्ग साइड चलने और 197 दोपहिया चालकों को तीन सवारी बैठाने पर चालान किया गया।पुलिस ने बताया कि अभियान का उद्देश्य लोगों को सड़क सुरक्षा के प्रति जागरूक करना है। साथ ही अपील की कि सभी वाहन चालक यातायात नियमों का पालन करें और सुरक्षित यात्रा के लिए पुलिस का सहयोग करें।
धुंधला हुआ दिल्ली-एनसीआर, AQI 450 पार, सबसे 'जहरीला' फरीदाबाद

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दिल्ली और एनसीआर में गहरे वायु प्रदूषण की चपेट में है। दिल्ली-एनसीआर में धुंध की मोटी ने लोगों का जीना मुहाल कर दिया है। नवंबर के महीने में अभी तो सर्दी शुरुआती दौर में है, लेकिन अभी से ही राजधानी में प्रदूषण के चलते लोगों को परेशानी होने लगी है। कई इलाकों में एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 400 के पार हो गया है।

शुक्रवार की सुबह दिल्ली-एनसीआर गहरे काले चादर से ढंकी हुई थी। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीबीसीबी) की आज सुबह की रिपोर्ट के अनुसार राजधानी के ज्यादातर इलाकों में एयर क्वालिटी इंडेक्स (एक्यूआई) गंभीर श्रेणी में दर्ज किया गया। रोहिणी, मुंडका, बवाना समेत कई स्थानों पर एक्यूआई 400 से ऊपर पहुंच गया, जो ‘गंभीर’ श्रेणी में आता है।

राजधानी दिल्ली में कहां कितना एक्यूआई

केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के अनुसार, आज सुबह राजधानी दिल्ली के आनंद विहार में एक्यूआई 416, अशोक विहार में 412, आया नगर में 343, बवाना में 431, बुराड़ी में 404, डीटीयू में 417, द्वारका में 369, आईटीओ में 381, जहांगीरपुरी में 433, मुंडका 434, नजफगढ़ में 353, पंजाबी बाग में 381, रोहिणी 423, आरकेपुरम 402, वजीरपुर में 442 दर्ज किया गया है। आज सुबह इंडिया गेट और कर्तव्य पथ के आस-पास के इलाके में जहरीले स्मॉग की एक परत छाई हुई थी। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के मुताबिक, इलाके के आस-पास एक्यूआई 331 दर्ज किया गया है, जो 'बहुत खराब' श्रेणी में है।

देश के 5 सबसे ज्यादा प्रदूषित शहर फरीदाबाद

भारत के 5 सबसे ज्यादा प्रदूषित शहरों के आंकड़े डराने वाले हैं। फरीदाबाद का एक्यूआई इस वक्त देश में सबसे ज्यादा (624) है। इसके बाद दूसरे नंबर पर गाजियाबाद (617) है। तीसरे नंबर पर रोहतक (587) तो वहीं चौथे नंबर पर नोएडा (560) है। पांचवे नंबर पर कैराना (542) है।

अगले 6 दिन ऐसा रह सकता है AQI

केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड का कहना है कि इससे पहले बुधवार को औसत एक्यूआई 392, मंगलवार को 374 और सोमवार को 351 था। आने वाले दिनों में दिल्ली का एक्यूआई और भी खराब होकर ‘गंभीर’ श्रेणी में पहुंचने की संभावना है। ये अगले छह दिनों तक ‘बहुत खराब’ से ‘गंभीर’ श्रेणी में बना रहने की आशंका है। सीपीसीबी के समीर ऐप के अनुसार, गुरुवार को 38 चालू केंद्रों में से 18 में एक्यूआई ‘गंभीर’ श्रेणी में दर्ज किया गया। इनमें चांदनी चौक, आनंद विहार, डीटीयू, बवाना, मुंडका, नरेला और वजीरपुर स्टेशन शामिल हैं। यहां एक्यूआई 400 से अधिक रहा।

मीडिया शिक्षा से रूबरू हुए स्कूली विद्यार्थी,जाना टीवी स्टूडियो और रेडियो प्रसारण की बारीकियां

रायपुर- कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय में गुरुवार को ब्रह्मविद द ग्लोबल स्कूल के विद्यार्थियों ने शैक्षणिक भ्रमण किया। इस दौरान छात्रों को जनसंचार एवं पत्रकारिता की शिक्षा से रूबरू कराया गया। कार्यक्रम में जनसंचार विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. राजेंद्र मोहंती ने छात्रों को संबोधित करते हुए जनसंचार की शिक्षा के क्षेत्र में संभावनाओं पर मार्गदर्शन दिया। उन्होंने कहा कि इस शिक्षा के मूल में रचनात्मकता का सार निहित है, जिसके बिना यह अध्ययन अधूरा रहता है।इसी दौरान छात्रों ने कई महत्वपूर्ण प्रश्न पूछे, जैसे—मीडिया क्षेत्र में सफलता का प्रतिशत क्या होता है, छात्रों के जीवन में पत्रकारिता का महत्व क्या है, तथा रचनात्मकता, बुद्धिमत्ता या व्यवहार में से कौन अधिक महत्वपूर्ण है। डॉ. मोहंती ने सभी प्रश्नों के उत्तर देते हुए बताया कि मीडिया समाज को दिशा देने और लोगों के जीवन को प्रभावित करने में अहम भूमिका निभाता है। इस दौरान बीएएमसी प्रथम सेमेस्टर के छात्रों ने भी अपने मीडिया शिक्षा से जुड़े अनुभव साझा किए।

इसके बाद शिक्षक डॉ. नीलेश साहू ने छात्रों को सामुदायिक लाइव रेडियो स्टेशन की विभिन्न प्रणालियों से अवगत कराया। उन्होंने बताया कि आरजे किस प्रकार कार्यक्रम रिकॉर्ड करते हैं, स्क्रिप्ट तैयार करते हैं और प्रसारण करते हैं। विद्यार्थियों ने स्वयं भी अपना परिचय रिकॉर्ड किया तथा पर्यावरण और समसामयिक मुद्दों पर अपने विचार रेडियो पर साझा किए।

वहीं विनोद सावंत ने टीवी स्टूडियो के माध्यम से समाचार प्रसारण की प्रक्रिया को समझाया। छात्रों ने लाइव न्यूज़ स्टूडियो की कार्यप्रणाली, ब्रेकिंग न्यूज़ जारी करने की प्रणाली और लाइव प्रसारण के दौरान स्टूडियो संचालन को करीब से देखा। भ्रमण के दौरान छात्रों ने पैनल कंट्रोल रूम (PCR), लाइटिंग, ऑडियो मिक्सर, टेलीप्रॉम्प्टर, ट्राईकास्टर, विज़ुअल सेटअप, एडिटिंग रूम जैसे तकनीकी उपकरणों का भी प्रायोगिक ज्ञान प्राप्त किया। उन्होंने यह भी समझा कि लाइव एंकरिंग का अंतिम आउटपुट कैसे तैयार होता है और फ्रेम चयन ट्राईकास्टर द्वारा किस प्रक्रिया से किया जाता है।

छात्रों ने विश्वविद्यालय के पुस्तकालय का भी भ्रमण किया। कार्यक्रम का संचालन विश्वविद्यालय की ओर से संयोजक चंद्रशेखर शिवारे द्वारा किया गया। स्कूल से शिक्षक अभिषेक चौबे, श्वेता शर्मा, ऐश्वर्या श्रीवास्तव और षणमुगप्रिया उपस्थित रहे। विश्वविद्यालय से दीपक साहू, ज्योति साहू तथा जनसंचार विभाग के बीएएमसी प्रथम सेमेस्टर के विद्यार्थियों ने कार्यक्रम में सहयोग प्रदान किया।

*नगर निगम गोरखपुर को जल संरक्षण के लिए मिला राष्ट्रीय सम्मान*

गोरखपुर नगर निगम ने जल संरक्षण के क्षेत्र में एक नया इतिहास रचते हुए पूरे देश में शहर का मान बढ़ाया है। जल संचय जन भागीदारी अभियान (JSJB 1.0) के अंतर्गत उत्कृष्ट कार्यों के लिए नगर निगम को राष्ट्रीय स्तर पर तृतीय पुरस्कार तथा उत्तर प्रदेश स्तर पर प्रथम पुरस्कार प्राप्त हुआ है। नई दिल्ली स्थित विज्ञान भवन में आयोजित प्रतिष्ठित ‘राष्ट्रीय जल पुरस्कार 2025’ समारोह में महामहिम राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु ने यह सम्मान गोरखपुर के महापौर डॉ. मंगलेश श्रीवास्तव और नगर आयुक्त गौरव सिंह सोगरवाल को प्रदान किया। गोरखपुर के लिए यह क्षण गौरव और प्रेरणा से भरा हुआ रहा।

पुरस्कार प्राप्त कर गोरखपुर लौटने पर नगर निगम सदन हाल में महापौर और नगर आयुक्त का पार्षदों द्वारा भव्य स्वागत किया गया। पार्षदगण ने माला, स्मृति चिन्ह और पुष्पगुच्छ भेंटकर दोनों का अभिनंदन किया। इस सम्मान में गोरखपुर के जन-सहयोग और टीमवर्क की भावना झलकती है।

महापौर बोले—यह पुरस्कार गोरखपुर के हर नागरिक का सम्मान

महापौर डॉ. मंगलेश श्रीवास्तव ने कहा कि यह उपलब्धि गोरखपुर की जनता, नगर निगम के पार्षदों और पूरी टीम के निरंतर प्रयास का परिणाम है। उन्होंने कहा कि “महामहिम राष्ट्रपति द्वारा दिया गया यह सम्मान गोरखपुर की ऐतिहासिक उपलब्धि है। पहली बार नगर निगम को राष्ट्रीय स्तर पर ऐसा बड़ा सम्मान मिला है। हम आगे और बेहतर कार्य करेंगे ताकि गोरखपुर पहले या दूसरे स्थान तक पहुँच सके।

महापौर ने यह भी कहा कि गोरखपुर की जनता ने जल संरक्षण को जिस तरह जन आंदोलन का रूप दिया है, वह पूरे प्रदेश के लिए प्रेरणादायक है।

नगर आयुक्त ने कहा—तीन महीनों में मिला तीसरा राष्ट्रीय सम्मान, अब जिम्मेदारी और बढ़ गई

नगर आयुक्त गौरव सिंह सोगरवाल ने कहा कि जल संचय जन भागीदारी अभियान के तहत गोरखपुर को तीसरा राष्ट्रीय और प्रदेश स्तर पर पहला स्थान प्राप्त होना पूरे शहर के लिए गर्व का विषय है। उन्होंने कहा कि “यह सफलता महापौर जी की दूरदर्शिता, पार्षदों के सहयोग, देवतुल्य जनता के प्रयास और माननीय मुख्यमंत्री के मार्गदर्शन से संभव हुई है।”

उन्होंने बताया कि पिछले तीन महीनों में नगर निगम को यह तीसरा राष्ट्रीय सम्मान मिला है, जो गोरखपुर मॉडल की मजबूती को दर्शाता है। नगर आयुक्त ने कहा कि अब जिम्मेदारी और बढ़ गई है और जल संरक्षण के कार्यों को और व्यापक स्तर पर आगे बढ़ाया जाएगा।

गोरखपुर मॉडल—देश में बना उदाहरण

गोरखपुर के जल संरक्षण कार्यों को राष्ट्रीय स्तर पर विशेष सराहना मिली है। इनमें प्रमुख है

वर्षा जल संचयन संरचनाओं का व्यापक विस्तार तालाबों और कुओं की सफाई और पुनर्जीवन नदियों और नालों के पुनर्जीवन के प्रयास तकिया घाट पर स्थापित नेचुरल वॉटर फिल्ट्रेशन सिस्टम तकिया घाट स्थित प्राकृतिक जल शोधन केंद्र बिना रसायन के नदी के प्रदूषित जल को शुद्ध करने का अनोखा मॉडल है जिसकी चर्चा पूरे देश में हो रही है। यह गोरखपुर की नवाचारी सोच का उत्कृष्ट उदाहरण है।

2 करोड़ की प्रोत्साहन राशि से होंगे नए कार्य

राष्ट्रीय जल पुरस्कार के साथ मिली 2 करोड़ रुपये की राशि का उपयोग नगर निगम द्वारा निम्न कार्यों में किया जायेगा

नए जल संरक्षण मॉडल तैयार करना अधिक तालाबों का पुनर्जीवन वर्षा जल संचयन संरचनाओं का विस्तार नागरिकों को स्वच्छ जल उपलब्धता में सुधार नगर निगम का लक्ष्य है कि गोरखपुर को देश के अग्रणी जल-संरक्षण मॉडल के रूप में स्थापित किया जाए।

गोरखपुर का बढ़ा मान—निवासियों ने कहा, यह ऐतिहासिक अवसर

गोरखपुर के निवासियों ने कहा कि इतिहास में पहली बार नगर निगम को राष्ट्रपति से ऐसा बड़ा राष्ट्रीय सम्मान प्राप्त हुआ है। यह शहर के लिए बेहद गर्व का क्षण है। नागरिकों ने महापौर डॉ. मंगलेश श्रीवास्तव और नगर आयुक्त गौरव सिंह सोगरवाल की टीम को हार्दिक बधाई दी और कहा कि नगर निगम ने वास्तव में गोरखपुर का मान बढ़ाने का काम किया है।

यह उपलब्धि सिद्ध करती है कि गोरखपुर अब सिर्फ सांस्कृतिक और शिक्षा का केंद्र ही नहीं, बल्कि पर्यावरण और जल संरक्षण में भी देश का अग्रणी शहर बनकर उभर रहा है। गोरखपुर के नेतृत्व और नागरिकों के सामूहिक प्रयासों ने यह संभव किया है।

*अभिभावक सम्मेलन में जागरूकता का संदेश;बच्चों को नियमित रूप से आंगनबाड़ी भेजने पर दिया जोर*

गोरखपुर। बाल विकास पुष्टाहार विभाग की ओर से अभिभावक सम्मेलन का जिला कार्यक्रम अधिकारी अभिनव कुमार मिश्रा के नेतृत्व में आयोजन किया गया।जिसमें बड़ी संख्या में अभिभावक उपस्थित रहे। कार्यक्रम में अधिकारियों द्वारा अभिभावकों को बच्चों के सर्वांगीण विकास, पोषण तथा नियमित उपस्थिति के महत्व से अवगत कराया गया।

सम्मेलन के दौरान सभी अभिभावकों से आग्रह किया गया कि वे अपने बच्चों को प्रतिदिन समय से आंगनबाड़ी केंद्र पर भेजें, जिससे बच्चों को समुचित पोषण, शिक्षा और गतिविधियों का लाभ मिल सके।

कार्यक्रम में कुछ अभिभावकों के माध्यम से बच्चों से कविता, कहानी, अक्षर ज्ञान तथा रंगों की पहचान से जुड़े सवाल पूछे गए, जिनका बच्चों ने उत्साहपूर्वक और उत्कृष्ट प्रदर्शन करते हुए जवाब दिया। बच्चों की सक्रियता और सीखने की क्षमता देखकर अभिभावक प्रसन्न और संतुष्ट दिखाई दिए। इस संबंध में जानकारी देते हुए जिला कार्यक्रम अधिकारी अभिनव कुमार मिश्रा ने बताया कि ऐसे सम्मेलन बच्चों और अभिभावकों के बीच जागरूकता बढ़ाने के साथ-साथ आंगनबाड़ी सेवाओं की गुणवत्ता को भी मजबूत करते हैं। कार्यक्रम सफलतापूर्वक संपन्न हुआ।

आपकी योजना आपकी सरकार आपके द्वार” कार्यक्रम का पहला दिन, कल

झारखंड सरकार के महत्वाकांक्षी कार्यक्रम “आपकी योजना–आपकी सरकार–आपके द्वार” के सुचारु संचालन हेतु हजारीबाग जिला प्रशासन ने सभी तैयारियाँ पूरी कर ली हैं। कल 21 नवंबर से इस विशेष शिविर का शुभारंभ किया जा रहा है। यह कार्यक्रम 21 नवंबर 2025 से 15 दिसंबर 2025 तक जिले के सभी प्रखंडों, पंचायतों एवं नगर निकायों के चिन्हित वार्डों में आयोजित किया जाएगा, ताकि नागरिकों को सरकारी सेवाएँ और प्रमाण-पत्र एक ही स्थान पर सरल, पारदर्शी और त्वरित रूप से उपलब्ध हो सकें।

कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य जनहित को प्राथमिकता देना है, जिसके तहत ग्रामीण व शहरी क्षेत्र के नागरिक शिविरों के माध्यम से आय, जाति, आवासीय सहित विभिन्न प्रमाण-पत्र ऑन द स्पॉट प्राप्त कर सकेंगे। शिविरों में हेल्प डेस्क की भी व्यवस्था होगी, जहाँ कर्मी योजनाओं, सेवाओं, शिकायत निवारण एवं आवेदन प्रक्रियाओं से संबंधित सभी जानकारी उपलब्ध कराएँगे।

शिविरों में जाति, आवासीय एवं आय प्रमाण-पत्र, अबुआ स्वास्थ्य सुरक्षा योजना, किसान क्रेडिट कार्ड, LAMPS–PACS सदस्यता, सर्वजन पेंशन योजना, सावित्रीबाई फुले किशोरी समृद्धि योजना, मुख्यमंत्री रोजगार सृजन योजना, बिरसा हरित ग्राम योजना, हरा राशन कार्ड, बिरसा सिंचाई कूप योजना, गुरुजी स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड, मुख्यमंत्री मंईयां सम्मान योजना, मुख्यमंत्री पशुधन योजना, अबुआ आवास योजना सहित सभी प्रमुख कल्याणकारी सेवाओं के लिए आवेदन लिए जाएंगे।

साथ ही सैचुरेशन मोड में संचालित योजनाओं हेतु छूटे हुए योग्य लाभुकों से आवेदन भी प्राप्त किए जाएंगे। शिविरों में आयुष्मान कार्ड वितरण, CFR/ICR वन पट्टा आवेदन, दिव्यांगता प्रमाण-पत्र, आंदोलनकारी चिन्हितीकरण प्रमाण-पत्र, तथा विभिन्न पेंशन योजनाओं के लिए भी आवेदन स्वीकार किए जाएंगे।

21 नवंबर को इन प्रखंड-पंचायतों एवं नगर निगम क्षेत्र के वार्डों में लगेंगे शिविर


दिनांक 21.11.2025 : ईचाक–बोंगा, बरकट्ठा–बरकट्ठा दक्षिणी, बरही–बरही पूर्वी, बड़कागांव–बड़कागांव पश्चिमी, केरेडारी–केरेडारी, कटकमसाण्डी–पेलावल उत्तरी, कटकमदाग–खपरियावां, विष्णुगढ़–भेलवारा, सदर हजारीबाग–ओरिया, डाड़ी–डाड़ी, दारू–रामदेवखरिका, चौपारण–ताजपुर, चौपारण–चौपारण, चुरचू–आंगो, चलकुशा–खरगु, टाटीझरिया–टाटीझरिया, वार्ड 1, 3, 4–वार्ड विकास केन्द्र नूरा।

उपायुक्त श्री शशि प्रकाश सिंह (IAS) ने जिले के सभी नागरिकों से अपील करते हुए कहा कि 21 नवंबर से 15 दिसंबर तक आयोजित होने वाले इन शिविरों में अधिक से अधिक संख्या में पहुँचकर सरकार की योजनाओं का लाभ उठाएँ। जिला प्रशासन नागरिकों को दरवाजे पर सुविधा उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध है तथा प्रत्येक प्रखंड और पंचायत में शिविरों के सुचारु संचालन के लिए विशेष व्यवस्था की गई है।

21 नवंबर से 15 दिसंबर — हजारीबाग की सभी पंचायतों, बिरहोर टोला और शहरी क्षेत्र के चिन्हित वार्डों में लगेंगे MEGA शिविर!


शिविर में उपलब्ध प्रमुख सेवाएँ

  • जाति / आवासीय / आय प्रमाण-पत्र
  • अबुआ स्वास्थ्य सुरक्षा योजना
  • किसान क्रेडिट कार्ड
  • LAMPS–PACS सदस्यता
  • सर्वजन पेंशन योजना
  • सावित्रीबाई फुले किशोरी समृद्धि योजना
  • मुख्यमंत्री रोजगार सृजन योजना
  • बिरसा हरित ग्राम योजना
  • हरा राशन कार्ड
  • बिरसा सिंचाई कूप योजना
  • गुरुजी स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड
  • मुख्यमंत्री मंईयां सम्मान योजना
  • मुख्यमंत्री पशुधन योजना
  • अबुआ आवास योजना
  • राजस्व अभिलेख, जन्म-मृत्यु प्रमाणपत्र, आधार–राशन कार्ड, बिजली बिल आदि का समाधान


आपकी योजना आपकी सरकार आपके द्वार कार्यक्रम के सफल आयोजन को लेकर बैठक

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दिनांक 21.11.2025 से शुरु होनेवाले आपकी योजना आपकी सरकार आपके द्वार कार्यक्रम के सफल आयोजन को लेकर बैठक आज दिनांक 20.11.2025 को उपायुक्त-सह-जिला दण्डाधिकारी श्री मंजूनाथ भजन्त्री की अध्यक्षता में बैठक आयोजित की गयी। समाहरणालय स्थित एनआईसी सभागार में आयोजित बैठक में उपविकास आयुक्त रांची श्री सौरभ कुमार भुवनिया, अपर समाहर्ता श्री रामनारायण सिंह, पीडी आईटीडीए श्री संजय कुमार भगत, अनुमण्डल पदाधिकारी सदर श्री उत्कर्ष कुमार, विशिष्ट अनुभाजन पदाधिकारी श्रीमती मोनी कुमारी, जिला आपूर्ति पदाधिकारी श्री राम गोपाल पांडेय, जिला जनसंपर्क पदाधिकारी श्रीमती उर्वशी पांडेय, जिला शिक्षा पदाधिकारी श्री विनय कुमार, जिला शिक्षा अधीक्षक श्री बादल राज, जिला समाज कल्याण पदाधिकारी श्रीमती सुरभि सिंह सहित अन्य संबंधित पदाधिकारी उपस्थित थे। साथ ही जिला के सभी प्रख्ंाड विकास पदाधिकारी एवं अंचल अधिकारी ऑनलाइन माध्यम से जुड़े थे।

बैठक में उपायुक्त-सह-जिला दण्डाधिकारी श्री मंजूनाथ भजन्त्री द्वारा बताया गया कि इस अभियान के तहत राज्य सरकार की विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं से संबंधित आवेदन, समस्याएँ एवं शिकायतें पंचायतवार शिविर लगाकर प्राप्त की जाएंगी और उनके त्वरित निष्पादन की व्यवस्था की जाएगी। कार्यक्रम का उद्देश्य सरकारी सेवाओं को सीधे लोगों के द्वार तक पहुँचाना, पारदर्शिता बढ़ाना और लाभुकों को योजनाओं से जोड़ने की प्रक्रिया को सरल बनाना है।

उपायुक्त-सह-जिला दण्डाधिकारी श्री मंजूनाथ भजन्त्री द्वारा संबंधित पदाधिकारियों को निर्देश दिया कि शिविर स्थल, व्यवस्थाएँ, काउंटर की संख्या, दस्तावेज सत्यापन, तकनीकी सुविधा तथा जनसंपर्क से संबंधित सभी तैयारियां सुनिश्चित कर ली जाएँ, ताकि कोई भी लाभुक बिना किसी परेशानी के शिविर में अपनी आवश्यक कार्यवाही पूरी कर सके।

पंचायत स्तर पर आयोजित शिविर में जनप्रतिनिधियों को आमंत्रित करने का निर्देश

उपायुक्त-सह-जिला दण्डाधिकारी श्री मंजूनाथ भजन्त्री ने अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश देते हुए कहा कि पंचायत स्तर पर आयोजित होने वाले सभी शिविरों में स्थानीय जनप्रतिनिधियों को समयपूर्व आमंत्रित किया जाए, ताकि अधिक से अधिक ग्रामीण लाभुक योजनाओं का लाभ उठा सकें। उन्होंने कहा कि यह कार्यक्रम राज्य सरकार की प्राथमिकता में है और क्षेत्र स्तर पर सेवा सुनिश्चित कराने के लिए सभी विभागों द्वारा समन्वित प्रयास आवश्यक है।

आवेदन प्राप्त करने और निष्पादन में लापरवाही हुई तो होगी सख्त कार्रवाई

उपायुक्त-सह-जिला दण्डाधिकारी श्री मंजूनाथ भजन्त्री ने निर्देश दिया कि शिविरों में प्राप्त होने वाले सभी प्रकार के आवेदनों एवं शिकायतों का समुचित एवं समयबद्ध निष्पादन अनिवार्य रूप से सुनिश्चित किया जाए। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि आवेदन प्राप्त करने या निष्पादन में किसी प्रकार की लापरवाही पाई गई तो संबंधित पदाधिकारी/कर्मी पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।

दिनांक 21.11.2025 को निम्न पंचायतों में होगा शिविर का आयोजन

चतरा पंचायत, अनगड़ा

खुखरा पंचायत, बेड़ो

कांची पंचायत, बुण्डू

छापर पंचायत, बुढ़मू

पण्डरी पंचायत, चान्हो

गड़गांव पंचायत, ईटकी

उरुगुटू एवं उपरकोनकी पंचायत, कांके

हुल्सु पंचायत, लापुंग

बंझीला पंचायत, माण्डर

नारो पंचायत, नगड़ी

हरदाग पंचायत, नामकुम

जयडीहा पंचायत, ओरमांझी

राहे पंचायत, राहे

तारुप पंचायत, रातू

हलमाद पंचायत, सिल्ली

बारेन्दा पंचायत, सोनाहातू

अमलेशा पंचायत, तमाड़

वार्ड-1, सीएमपीडीआई स्कूल के सामने मार्केट के समीप

वार्ड-2, एदलहातू जोगो पहाड़

IITF 2025 में झारखंड की धूम: देश के 70% तसर सिल्क का उत्पादन कर बना 'तसर राजधानी', पवेलियन में महिलाएं दे रहीं लाइव डेमो

नई दिल्ली: भारत अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मेला (IITF) 2025 में झारखंड पवेलियन इस वर्ष तसर सिल्क के क्षेत्र में अपनी अद्वितीय पहचान के कारण विशेष रूप से सुर्खियों में है। झारखंड देश के कुल तसर उत्पादन का 70 प्रतिशत योगदान अकेले देता है, जिससे यह 'देश की तसर राजधानी' के रूप में स्थापित हो गया है।

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तसर से तरक्की का सफर

झारखंड का तसर उद्योग आज कच्चे रेशम के उत्पादन को बढ़ाने, संपूर्ण तसर इकोसिस्टम का निर्माण करने और स्थानीय आजीविका को सुदृढ़ करने के विज़न के साथ तेजी से आगे बढ़ रहा है।

उत्पादन में वृद्धि: 2001 में जहाँ 90 मीट्रिक टन कच्चे रेशम का उत्पादन होता था, वह बढ़कर 2024-25 में 1,363 मीट्रिक टन तक पहुँच गया है।

बुनियादी ढाँचा: राज्य में आज 100 कोकून संरक्षण केंद्र और 40 पूर्ण-सुविधायुक्त परियोजना केंद्र संचालित हो रहे हैं।

महिलाओं के नेतृत्व में सशक्तिकरण

इस अभूतपूर्व सफलता के केंद्र में झारखंड की महिलाएँ हैं, जिनकी तसर उत्पादन के 50-60 प्रतिशत कार्यों में सक्रिय भागीदारी है। कोकून प्रसंस्करण से लेकर यार्न उत्पादन (जो पूरी तरह महिला कर्मियों द्वारा किया जाता है) तक, महिलाएं इस अर्थव्यवस्था का महत्वपूर्ण स्तंभ हैं।

उद्योग विभाग और रेशम निदेशालय, झारक्राफ्ट, और JSLPS के सहयोग से, महिलाओं को प्रशिक्षण, रोजगार और बाजार तक पहुँच उपलब्ध कराई जा रही है। कॉमन फ़ैसिलिटी सेंटर (CFC) में 30-60 महिलाएँ एक साथ उत्पादन और कौशल विकास से जुड़कर स्वरोजगार की दिशा में बढ़ रही हैं।

पैवेलियन में लाइव डेमो आकर्षण का केंद्र

पवेलियन का मुख्य आकर्षण वह लाइव डेमो है, जहाँ प्रशिक्षित महिला कारीगर तसर कोकून से रेशम धागा निकालने की पारंपरिक प्रक्रिया (कोकून उबालने से लेकर धागा तैयार करने तक) का प्रत्यक्ष प्रदर्शन कर रही हैं। इसके साथ ही, "तम्सुम" उसी धागे से करघे पर कपड़ा बुनने की कला प्रस्तुत करती हैं।

यह अनोखा प्रदर्शन न केवल तसर उद्योग की समृद्ध विरासत, बल्कि ग्रामीण और आदिवासी क्षेत्रों में महिलाओं द्वारा स्थापित स्थायी आजीविका के मजबूत आधार को भी उजागर करता है।

फोटो --बैठक करते हुए जिलाधिकारी मीरजापुर

जिलाधिकारी ने मुख्यमंत्री डैशबोर्ड विकास कार्यो से सम्बन्धित बैठक कर की समीक्षा 

एक करोड़ से अधिक लागत वाली निर्माणाधीन परियोजनाओ, पूर्वांचल विकास निधि, क्रिटिकल गैप्स योजना, त्वरित आर्थिक विकास योजना, आकांक्षत्मक विकास खण्ड, वन ट्रिलियन डाॅलर की भी समीक्षा कर ली जानकारी

55 मदो, योजनाओ मे जनपद को ए श्रेणी प्राप्त, बी, सी व डी0 श्रेणी वाले अधिकारी अगले माह प्रगति मे सुधार लाते हुए ए श्रेणी लाना करें अन्यथा होगी कड़ी कार्यवाही -जिलाधिकारी

मीरजापुर। जिलाधिकारी पवन कुमार गंगवार की अध्यक्षता मे कलेक्ट्रेट सभागार में मुख्यमंत्री डैशबोर्ड जिला अनुश्रवण पुस्तिका विकास कार्यो से सम्बन्धित, एक करोड़ से अधिक लागत वाली निर्माणाधीन परियोजनाओ की समीक्षा, पूर्वांचल विकास निधि, क्रिटिकल गैप्स योजना, त्वरित आर्थिक विकास योजना, आकांक्षत्मक विकास खण्ड, वन ट्रिलियन डाॅलर की समीक्षा बैठक आहूत की गई। मुख्यमंत्री डैशबोर्ड जिला अनुश्रवण पुस्तिका विकास कार्यो से सम्बन्धित समीक्षा के दौरान 55 मदो, योजनाओं में जनपद को ए श्रेणी प्राप्त हुआ है। जिलाधिकारी बी व सी, डी श्रेणी वाले अधिकारियों पर कड़ी नाराजगी व्यक्त करते हुए निर्देशित किया कि अगले माह योजनाओं में व्यक्तिगत रूचि लेते हुए ए श्रेणी लाना सुनिश्चित करे अन्यथा सम्बन्धित के विरूद्ध कड़ी कार्यवाही की जाएगी। पीएम सूर्यघर मुफ्त बिजली योजना की समीक्षा के दौरान कलेक्ट्रेट, विकास भवन व सभी खण्ड विकास अधिकारी कार्यालयों में हेल्पडेस्क दो दिवसों में स्थापित करते हुए सूचना उपलब्ध कराए। अल्पसंख्यक कल्याण द्वारा छात्र वृत्ति व निशुल्क प्रतिपूर्ति की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी को निर्देशित करते कहा कि आवेदन के सापेक्ष अग्रसारित आवेदनों की शत प्रतिशत कराते हुए स्वीकृति हेतु भेजे। सैम व मैम बच्चों की समीक्षा मे जिलाधिकारी ने सभी अधिकारियों से कहा कि जनपद को कुपोषण से मुक्त कराना हम सभी का दायित्व है एवं सभी लोग अपनी सहभागिता से जनपद को कुपोषण मुक्त कराने मे अपना योगदान दे। उन्होंने कार्यक्रम अधिकारी को निर्देशित करते हुए कहा कि सैम व मैम बच्चों केन्द्रवार सूची उपलब्ध कराएं। उन्होंने सभी जनपदीय अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा प्रायः यह देखा की कि अपनी बिना अनुमति मुख्यालय से बाहर चले जाते है जिससे शासन द्वारा मांगी जाने वाली सूचना का प्रेषण समय से नही पाता है अतएव सभी अधिकारी मुख्यालय से पूर्व अनुमति अवश्य ले जिस अधिकारी के द्वारा बिना अनुमति मुख्यालय छोड़ेगा उस पर कठोरतम कार्यवाही की जाएगी। जिन मदो, योजनाओं में ए श्रेणी प्राप्त है यथा- पंडित दीनदयाल उपाध्याय सोलर स्ट्रीट लाइट योजना ए, सोलर स्ट्रीट लाइट बीकेएस ग्राम उन्नति योजना ए, एकीकृत बागवानी विकास मिशन ए, पर ड्राप मोर क्राप माइक्रो इरिगेशन ए, खराब ट्रांसफार्मर की शिकायतें ए, दैनिक विद्युत आपूर्ति घंटे ग्रामीण ए, दैनिक विद्युत आपूर्ति घंटे शहरी ए, विद्युत बिल में सुधार हेतु आवेदन ए, कृषि रक्षा रसायन डीबीटी ए, प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि ए, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना ए, पीएम कुसुम ए, बीज डीबीटी ए, प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण ए, मुख्यमंत्री आवास योजना ग्रामीण ए, मनरेगा ए, भवन निर्माण ए, सड़क निर्माण ए, एंबुलेंस 108 ए, एंबुलेंस 102 ए, बायोमेडिकल उपकरण रखरखाव कार्यक्रम ए, मोबाइल मेडिकल यूनिट ए, दुग्ध मूल्य भुगतान की स्थिति ए, सहकारी दुग्ध समितियां ए, दिव्यांग पेंशन ए, दिव्यांग पेंशन आधार सीडिंग ए, जल जीवन मिशन हर घर जल ए, व्यक्तिगत शौचालय निर्माण ए, स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण फेज-2 ए, सामाजिक वनीकरण ए, आपरेश कायाकल्य ए, पीएम पोषण विद्यालय निरीक्षण ए, अंडा उत्पादन ए, निराश्रित गोवंश का संरक्षण ए, पशु टीकाकरण ए, पशुओं में कृत्रिम गर्भाधान ए, संरक्षित निराश्रित गोवंश की सुपुर्दगी की ए, शादी अनुदान योजना ए, प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना ए, मुख्यमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना ए, मत्स्य उत्पादन ए, निराश्रित महिला पेंशन का आधार सीडिंग ए, पति की मृत्यु उपरान्त निराश्रित महिला पेंशन ए, मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना ए, प्रोजेक्ट अलंकार ए, सड़को का अनुरक्षण ए, कन्या विवाह सहायता योजना ए, मातृत्व शिशु एवं बालिका मद्द योजना ए, ओडीओपी वित्त पोषण योजना ए, मुख्यमंत्री युवा उद्यमी विकास अभियान ए, मुख्यमंत्री युवा स्वरोजगार योजना ए, राष्ट्रीय पारिवारिक लाभ योजना ए, राष्ट्रीय वृद्धावस्था पेंशन योजना ए, वृद्धावस्था पेंशन का आधार सीडिंग ए, जिला सहकारी बैंक अल्पकालीन ऋण वितरण एवं वसूली ए श्रेणी प्राप्त हुआ हैं। एक करोड़ से अधिक लगात वाली समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने निर्देशित किया निर्माणाधीन परियोजनाओं की गुणवत्ता का विशेष ध्यान दिया जाए यदि निरीक्षण के दौरान गुणवत्ता खराब पाई जाती है तो सम्बन्धित के ठेकेदार के विरूद्ध कड़ी कार्यवाही की जाएगी। उन्होंने कहा कि जिन परियोजना मे धनराशि है उन्हें समय से पूर्ण कराते हुए हैण्डओवर की कार्यवाही करें तथा जिन परियोजनाओं में बजट का अभाव है उनमे अपने मुख्यालय को पत्राचार कर बजट अवमुक्त कराए। उन्होंने सभी कार्यदायी संस्थाओ को निर्देशित करते हुए कहा कि ऐसी परियोजनाएं जिनके निर्माण मे विलम्ब हो रहा है उनमें शासन को पत्राचार करते हुए समय सीमा बढ़वाया जाए। उन्होंने सभी कार्यदायी संस्थाओं को निर्देशित करते हुए कहा कि जो योजना पूर्ण होने वाली है या पूर्ण चुकी है अभी हैण्डओवर नहीं हुआ है उन सभी योजनाओं में विद्युत कनेक्शन है अथवा नहीं या झटपट पोर्टल पर आवेदन किया गया है कि नहीं की सूचना जिला अर्थ संख्या अधिकारी के माध्यम से उपलब्ध कराए। तत्पश्चात पूर्वांचल विकास निधि, क्रिटिकल गैप्स योजना, त्वरित आर्थिक विकास योजना, आकांक्षत्मक विकास खण्ड, वन ट्रिलियन डाॅलर की बिन्दुवार विस्तृत समीक्षा कर आवश्यक दिशा निर्देश दिया। बैठक मुख्य विकास अधिकारी विशाल कुमार, मुख्य चिकित्साधिकारी डाॅ सीएल वर्मा, परियोजना निदेशक डीआरडीए धर्मजीत सिंह, उपायुक्त एनआरएलएम सहित अन्य सम्बन्धित अधिकारी उपस्थित रहें।

नेताजी सुभाष चंद्र बोस पब्लिक स्कूल, मटवारी में रंगोली एवं विज्ञान प्रदर्शनी का भव्य आयोजन

हजारीबाग : मटवारी स्थित नेताजी सुभाष चंद्र बोस पब्लिक स्कूल में आज रंगोली एवं विज्ञान प्रदर्शनी का शानदार आयोजन किया गया। कार्यक्रम का उद्घाटन हजारीबाग के सदर विधायक प्रदीप प्रसाद ने नेताजी सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर किया। उनके साथ डॉ. अमन उरवार, श्री सुधांशु शेखर झा, मंजू कुमारी सहित कई सम्मानित अतिथि उपस्थित रहे।‌ प्रदर्शनी में विद्यार्थियों ने अपने नए विचारों, वैज्ञानिक नवाचारों और परियोजनाओं की प्रभावशाली प्रस्तुति दी। करीब 100 विद्यार्थियों द्वारा 50 से अधिक मॉडल प्रदर्शित किए गए, जिनमें एंटी स्लीप अलार्म, ग्रीन हाउस इफेक्ट, जल चक्र, एफिसिएंट ट्रेन प्लेटफॉर्म क्रॉसिंग, सूर्य ग्रहण, बाढ़-रोधी घर, जलवायु परिवर्तन, कचरा प्रबंधन, वर्षा जल संरक्षण, पवन ऊर्जा, कार्बन से इंक बनाना, एनर्जी एफिशिएंट स्मार्ट सिटी, डीएनए मॉडल और स्वतः अग्निशामक यंत्र जैसी रचनात्मक परियोजनाएँ शामिल थीं। साथ ही विद्यार्थियों द्वारा बनाई गई प्रेरणादायक रंगोलियाँ भी आकर्षण का केंद्र रहीं, जिनमें बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ, माई ड्रीम टू मेक परफेक्ट अर्थ, डिजिटल अर्थ और जर्नी ऑफ अर्थ प्रमुख थीं। बड़ी संख्या में पहुंचे अभिभावकों, अतिथियों और विधायक प्रदीप प्रसाद ने प्रदर्शनी की प्रशंसा करते हुए इसे “अद्वितीय पहल” बताया। विद्यालय प्रधान देवेंद्र गोस्वामी ने कहा कि इस प्रदर्शनी का उद्देश्य छात्रों में रचनात्मकता, वैज्ञानिक सोच और जिज्ञासा को बढ़ावा देना है, जिसका सार्थक परिणाम देखने को मिला। उन्होंने कहा कि सही मार्गदर्शन और सहयोग मिले तो ये बच्चे देश का नाम रोशन करेंगे। प्रदर्शनी को सफल बनाने में विनीत, रिया, जैस्मिन, ऐमन, सुमित, शिवम सहित अनेक छात्रों के साथ शिक्षिकाओं नेहा परवीन, नेहा कुमारी, आरसी परवीन, रिया कुमारी, अजीत कुमार तथा पूर्व छात्र राहुल, अंकित, विकास, दानिश आदि का सराहनीय योगदान रहा।

यातायात नियम तोड़ने पर लगातार कार्रवाई, 2435 ई-चालान
लखनऊ। राजधानी में यातायात माह 2025 के दौरान नियम तोड़ने वालों पर पुलिस की सख्ती लगातार जारी है। शहर में तैनात यातायात निरीक्षक और उप निरीक्षक प्रतिदिन लोगों को जागरूक कर रहे हैं, लेकिन इसके बावजूद कई वाहन चालक नियमों की अनदेखी कर रहे हैं। गुरुवार को यातायात पुलिस ने अलग-अलग चौराहों और तिराहों पर चेकिंग अभियान चलाया, जिसमें कुल 2435 ई-चालान किए गए। 235 को नो-पार्किंग नियम तोड़ने पर चालान कार्रवाई के दौरान 1278 लोगों को बिना हेल्मेट, 235 को नो-पार्किंग नियम तोड़ने, 79 को दोषपूर्ण नंबर प्लेट, 29 को बिना बीमा, 56 को रॉन्ग साइड चलने और 197 दोपहिया चालकों को तीन सवारी बैठाने पर चालान किया गया।पुलिस ने बताया कि अभियान का उद्देश्य लोगों को सड़क सुरक्षा के प्रति जागरूक करना है। साथ ही अपील की कि सभी वाहन चालक यातायात नियमों का पालन करें और सुरक्षित यात्रा के लिए पुलिस का सहयोग करें।
धुंधला हुआ दिल्ली-एनसीआर, AQI 450 पार, सबसे 'जहरीला' फरीदाबाद

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दिल्ली और एनसीआर में गहरे वायु प्रदूषण की चपेट में है। दिल्ली-एनसीआर में धुंध की मोटी ने लोगों का जीना मुहाल कर दिया है। नवंबर के महीने में अभी तो सर्दी शुरुआती दौर में है, लेकिन अभी से ही राजधानी में प्रदूषण के चलते लोगों को परेशानी होने लगी है। कई इलाकों में एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 400 के पार हो गया है।

शुक्रवार की सुबह दिल्ली-एनसीआर गहरे काले चादर से ढंकी हुई थी। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीबीसीबी) की आज सुबह की रिपोर्ट के अनुसार राजधानी के ज्यादातर इलाकों में एयर क्वालिटी इंडेक्स (एक्यूआई) गंभीर श्रेणी में दर्ज किया गया। रोहिणी, मुंडका, बवाना समेत कई स्थानों पर एक्यूआई 400 से ऊपर पहुंच गया, जो ‘गंभीर’ श्रेणी में आता है।

राजधानी दिल्ली में कहां कितना एक्यूआई

केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के अनुसार, आज सुबह राजधानी दिल्ली के आनंद विहार में एक्यूआई 416, अशोक विहार में 412, आया नगर में 343, बवाना में 431, बुराड़ी में 404, डीटीयू में 417, द्वारका में 369, आईटीओ में 381, जहांगीरपुरी में 433, मुंडका 434, नजफगढ़ में 353, पंजाबी बाग में 381, रोहिणी 423, आरकेपुरम 402, वजीरपुर में 442 दर्ज किया गया है। आज सुबह इंडिया गेट और कर्तव्य पथ के आस-पास के इलाके में जहरीले स्मॉग की एक परत छाई हुई थी। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के मुताबिक, इलाके के आस-पास एक्यूआई 331 दर्ज किया गया है, जो 'बहुत खराब' श्रेणी में है।

देश के 5 सबसे ज्यादा प्रदूषित शहर फरीदाबाद

भारत के 5 सबसे ज्यादा प्रदूषित शहरों के आंकड़े डराने वाले हैं। फरीदाबाद का एक्यूआई इस वक्त देश में सबसे ज्यादा (624) है। इसके बाद दूसरे नंबर पर गाजियाबाद (617) है। तीसरे नंबर पर रोहतक (587) तो वहीं चौथे नंबर पर नोएडा (560) है। पांचवे नंबर पर कैराना (542) है।

अगले 6 दिन ऐसा रह सकता है AQI

केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड का कहना है कि इससे पहले बुधवार को औसत एक्यूआई 392, मंगलवार को 374 और सोमवार को 351 था। आने वाले दिनों में दिल्ली का एक्यूआई और भी खराब होकर ‘गंभीर’ श्रेणी में पहुंचने की संभावना है। ये अगले छह दिनों तक ‘बहुत खराब’ से ‘गंभीर’ श्रेणी में बना रहने की आशंका है। सीपीसीबी के समीर ऐप के अनुसार, गुरुवार को 38 चालू केंद्रों में से 18 में एक्यूआई ‘गंभीर’ श्रेणी में दर्ज किया गया। इनमें चांदनी चौक, आनंद विहार, डीटीयू, बवाना, मुंडका, नरेला और वजीरपुर स्टेशन शामिल हैं। यहां एक्यूआई 400 से अधिक रहा।

मीडिया शिक्षा से रूबरू हुए स्कूली विद्यार्थी,जाना टीवी स्टूडियो और रेडियो प्रसारण की बारीकियां

रायपुर- कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय में गुरुवार को ब्रह्मविद द ग्लोबल स्कूल के विद्यार्थियों ने शैक्षणिक भ्रमण किया। इस दौरान छात्रों को जनसंचार एवं पत्रकारिता की शिक्षा से रूबरू कराया गया। कार्यक्रम में जनसंचार विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. राजेंद्र मोहंती ने छात्रों को संबोधित करते हुए जनसंचार की शिक्षा के क्षेत्र में संभावनाओं पर मार्गदर्शन दिया। उन्होंने कहा कि इस शिक्षा के मूल में रचनात्मकता का सार निहित है, जिसके बिना यह अध्ययन अधूरा रहता है।इसी दौरान छात्रों ने कई महत्वपूर्ण प्रश्न पूछे, जैसे—मीडिया क्षेत्र में सफलता का प्रतिशत क्या होता है, छात्रों के जीवन में पत्रकारिता का महत्व क्या है, तथा रचनात्मकता, बुद्धिमत्ता या व्यवहार में से कौन अधिक महत्वपूर्ण है। डॉ. मोहंती ने सभी प्रश्नों के उत्तर देते हुए बताया कि मीडिया समाज को दिशा देने और लोगों के जीवन को प्रभावित करने में अहम भूमिका निभाता है। इस दौरान बीएएमसी प्रथम सेमेस्टर के छात्रों ने भी अपने मीडिया शिक्षा से जुड़े अनुभव साझा किए।

इसके बाद शिक्षक डॉ. नीलेश साहू ने छात्रों को सामुदायिक लाइव रेडियो स्टेशन की विभिन्न प्रणालियों से अवगत कराया। उन्होंने बताया कि आरजे किस प्रकार कार्यक्रम रिकॉर्ड करते हैं, स्क्रिप्ट तैयार करते हैं और प्रसारण करते हैं। विद्यार्थियों ने स्वयं भी अपना परिचय रिकॉर्ड किया तथा पर्यावरण और समसामयिक मुद्दों पर अपने विचार रेडियो पर साझा किए।

वहीं विनोद सावंत ने टीवी स्टूडियो के माध्यम से समाचार प्रसारण की प्रक्रिया को समझाया। छात्रों ने लाइव न्यूज़ स्टूडियो की कार्यप्रणाली, ब्रेकिंग न्यूज़ जारी करने की प्रणाली और लाइव प्रसारण के दौरान स्टूडियो संचालन को करीब से देखा। भ्रमण के दौरान छात्रों ने पैनल कंट्रोल रूम (PCR), लाइटिंग, ऑडियो मिक्सर, टेलीप्रॉम्प्टर, ट्राईकास्टर, विज़ुअल सेटअप, एडिटिंग रूम जैसे तकनीकी उपकरणों का भी प्रायोगिक ज्ञान प्राप्त किया। उन्होंने यह भी समझा कि लाइव एंकरिंग का अंतिम आउटपुट कैसे तैयार होता है और फ्रेम चयन ट्राईकास्टर द्वारा किस प्रक्रिया से किया जाता है।

छात्रों ने विश्वविद्यालय के पुस्तकालय का भी भ्रमण किया। कार्यक्रम का संचालन विश्वविद्यालय की ओर से संयोजक चंद्रशेखर शिवारे द्वारा किया गया। स्कूल से शिक्षक अभिषेक चौबे, श्वेता शर्मा, ऐश्वर्या श्रीवास्तव और षणमुगप्रिया उपस्थित रहे। विश्वविद्यालय से दीपक साहू, ज्योति साहू तथा जनसंचार विभाग के बीएएमसी प्रथम सेमेस्टर के विद्यार्थियों ने कार्यक्रम में सहयोग प्रदान किया।

*नगर निगम गोरखपुर को जल संरक्षण के लिए मिला राष्ट्रीय सम्मान*

गोरखपुर नगर निगम ने जल संरक्षण के क्षेत्र में एक नया इतिहास रचते हुए पूरे देश में शहर का मान बढ़ाया है। जल संचय जन भागीदारी अभियान (JSJB 1.0) के अंतर्गत उत्कृष्ट कार्यों के लिए नगर निगम को राष्ट्रीय स्तर पर तृतीय पुरस्कार तथा उत्तर प्रदेश स्तर पर प्रथम पुरस्कार प्राप्त हुआ है। नई दिल्ली स्थित विज्ञान भवन में आयोजित प्रतिष्ठित ‘राष्ट्रीय जल पुरस्कार 2025’ समारोह में महामहिम राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु ने यह सम्मान गोरखपुर के महापौर डॉ. मंगलेश श्रीवास्तव और नगर आयुक्त गौरव सिंह सोगरवाल को प्रदान किया। गोरखपुर के लिए यह क्षण गौरव और प्रेरणा से भरा हुआ रहा।

पुरस्कार प्राप्त कर गोरखपुर लौटने पर नगर निगम सदन हाल में महापौर और नगर आयुक्त का पार्षदों द्वारा भव्य स्वागत किया गया। पार्षदगण ने माला, स्मृति चिन्ह और पुष्पगुच्छ भेंटकर दोनों का अभिनंदन किया। इस सम्मान में गोरखपुर के जन-सहयोग और टीमवर्क की भावना झलकती है।

महापौर बोले—यह पुरस्कार गोरखपुर के हर नागरिक का सम्मान

महापौर डॉ. मंगलेश श्रीवास्तव ने कहा कि यह उपलब्धि गोरखपुर की जनता, नगर निगम के पार्षदों और पूरी टीम के निरंतर प्रयास का परिणाम है। उन्होंने कहा कि “महामहिम राष्ट्रपति द्वारा दिया गया यह सम्मान गोरखपुर की ऐतिहासिक उपलब्धि है। पहली बार नगर निगम को राष्ट्रीय स्तर पर ऐसा बड़ा सम्मान मिला है। हम आगे और बेहतर कार्य करेंगे ताकि गोरखपुर पहले या दूसरे स्थान तक पहुँच सके।

महापौर ने यह भी कहा कि गोरखपुर की जनता ने जल संरक्षण को जिस तरह जन आंदोलन का रूप दिया है, वह पूरे प्रदेश के लिए प्रेरणादायक है।

नगर आयुक्त ने कहा—तीन महीनों में मिला तीसरा राष्ट्रीय सम्मान, अब जिम्मेदारी और बढ़ गई

नगर आयुक्त गौरव सिंह सोगरवाल ने कहा कि जल संचय जन भागीदारी अभियान के तहत गोरखपुर को तीसरा राष्ट्रीय और प्रदेश स्तर पर पहला स्थान प्राप्त होना पूरे शहर के लिए गर्व का विषय है। उन्होंने कहा कि “यह सफलता महापौर जी की दूरदर्शिता, पार्षदों के सहयोग, देवतुल्य जनता के प्रयास और माननीय मुख्यमंत्री के मार्गदर्शन से संभव हुई है।”

उन्होंने बताया कि पिछले तीन महीनों में नगर निगम को यह तीसरा राष्ट्रीय सम्मान मिला है, जो गोरखपुर मॉडल की मजबूती को दर्शाता है। नगर आयुक्त ने कहा कि अब जिम्मेदारी और बढ़ गई है और जल संरक्षण के कार्यों को और व्यापक स्तर पर आगे बढ़ाया जाएगा।

गोरखपुर मॉडल—देश में बना उदाहरण

गोरखपुर के जल संरक्षण कार्यों को राष्ट्रीय स्तर पर विशेष सराहना मिली है। इनमें प्रमुख है

वर्षा जल संचयन संरचनाओं का व्यापक विस्तार तालाबों और कुओं की सफाई और पुनर्जीवन नदियों और नालों के पुनर्जीवन के प्रयास तकिया घाट पर स्थापित नेचुरल वॉटर फिल्ट्रेशन सिस्टम तकिया घाट स्थित प्राकृतिक जल शोधन केंद्र बिना रसायन के नदी के प्रदूषित जल को शुद्ध करने का अनोखा मॉडल है जिसकी चर्चा पूरे देश में हो रही है। यह गोरखपुर की नवाचारी सोच का उत्कृष्ट उदाहरण है।

2 करोड़ की प्रोत्साहन राशि से होंगे नए कार्य

राष्ट्रीय जल पुरस्कार के साथ मिली 2 करोड़ रुपये की राशि का उपयोग नगर निगम द्वारा निम्न कार्यों में किया जायेगा

नए जल संरक्षण मॉडल तैयार करना अधिक तालाबों का पुनर्जीवन वर्षा जल संचयन संरचनाओं का विस्तार नागरिकों को स्वच्छ जल उपलब्धता में सुधार नगर निगम का लक्ष्य है कि गोरखपुर को देश के अग्रणी जल-संरक्षण मॉडल के रूप में स्थापित किया जाए।

गोरखपुर का बढ़ा मान—निवासियों ने कहा, यह ऐतिहासिक अवसर

गोरखपुर के निवासियों ने कहा कि इतिहास में पहली बार नगर निगम को राष्ट्रपति से ऐसा बड़ा राष्ट्रीय सम्मान प्राप्त हुआ है। यह शहर के लिए बेहद गर्व का क्षण है। नागरिकों ने महापौर डॉ. मंगलेश श्रीवास्तव और नगर आयुक्त गौरव सिंह सोगरवाल की टीम को हार्दिक बधाई दी और कहा कि नगर निगम ने वास्तव में गोरखपुर का मान बढ़ाने का काम किया है।

यह उपलब्धि सिद्ध करती है कि गोरखपुर अब सिर्फ सांस्कृतिक और शिक्षा का केंद्र ही नहीं, बल्कि पर्यावरण और जल संरक्षण में भी देश का अग्रणी शहर बनकर उभर रहा है। गोरखपुर के नेतृत्व और नागरिकों के सामूहिक प्रयासों ने यह संभव किया है।

*अभिभावक सम्मेलन में जागरूकता का संदेश;बच्चों को नियमित रूप से आंगनबाड़ी भेजने पर दिया जोर*

गोरखपुर। बाल विकास पुष्टाहार विभाग की ओर से अभिभावक सम्मेलन का जिला कार्यक्रम अधिकारी अभिनव कुमार मिश्रा के नेतृत्व में आयोजन किया गया।जिसमें बड़ी संख्या में अभिभावक उपस्थित रहे। कार्यक्रम में अधिकारियों द्वारा अभिभावकों को बच्चों के सर्वांगीण विकास, पोषण तथा नियमित उपस्थिति के महत्व से अवगत कराया गया।

सम्मेलन के दौरान सभी अभिभावकों से आग्रह किया गया कि वे अपने बच्चों को प्रतिदिन समय से आंगनबाड़ी केंद्र पर भेजें, जिससे बच्चों को समुचित पोषण, शिक्षा और गतिविधियों का लाभ मिल सके।

कार्यक्रम में कुछ अभिभावकों के माध्यम से बच्चों से कविता, कहानी, अक्षर ज्ञान तथा रंगों की पहचान से जुड़े सवाल पूछे गए, जिनका बच्चों ने उत्साहपूर्वक और उत्कृष्ट प्रदर्शन करते हुए जवाब दिया। बच्चों की सक्रियता और सीखने की क्षमता देखकर अभिभावक प्रसन्न और संतुष्ट दिखाई दिए। इस संबंध में जानकारी देते हुए जिला कार्यक्रम अधिकारी अभिनव कुमार मिश्रा ने बताया कि ऐसे सम्मेलन बच्चों और अभिभावकों के बीच जागरूकता बढ़ाने के साथ-साथ आंगनबाड़ी सेवाओं की गुणवत्ता को भी मजबूत करते हैं। कार्यक्रम सफलतापूर्वक संपन्न हुआ।

आपकी योजना आपकी सरकार आपके द्वार” कार्यक्रम का पहला दिन, कल

झारखंड सरकार के महत्वाकांक्षी कार्यक्रम “आपकी योजना–आपकी सरकार–आपके द्वार” के सुचारु संचालन हेतु हजारीबाग जिला प्रशासन ने सभी तैयारियाँ पूरी कर ली हैं। कल 21 नवंबर से इस विशेष शिविर का शुभारंभ किया जा रहा है। यह कार्यक्रम 21 नवंबर 2025 से 15 दिसंबर 2025 तक जिले के सभी प्रखंडों, पंचायतों एवं नगर निकायों के चिन्हित वार्डों में आयोजित किया जाएगा, ताकि नागरिकों को सरकारी सेवाएँ और प्रमाण-पत्र एक ही स्थान पर सरल, पारदर्शी और त्वरित रूप से उपलब्ध हो सकें।

कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य जनहित को प्राथमिकता देना है, जिसके तहत ग्रामीण व शहरी क्षेत्र के नागरिक शिविरों के माध्यम से आय, जाति, आवासीय सहित विभिन्न प्रमाण-पत्र ऑन द स्पॉट प्राप्त कर सकेंगे। शिविरों में हेल्प डेस्क की भी व्यवस्था होगी, जहाँ कर्मी योजनाओं, सेवाओं, शिकायत निवारण एवं आवेदन प्रक्रियाओं से संबंधित सभी जानकारी उपलब्ध कराएँगे।

शिविरों में जाति, आवासीय एवं आय प्रमाण-पत्र, अबुआ स्वास्थ्य सुरक्षा योजना, किसान क्रेडिट कार्ड, LAMPS–PACS सदस्यता, सर्वजन पेंशन योजना, सावित्रीबाई फुले किशोरी समृद्धि योजना, मुख्यमंत्री रोजगार सृजन योजना, बिरसा हरित ग्राम योजना, हरा राशन कार्ड, बिरसा सिंचाई कूप योजना, गुरुजी स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड, मुख्यमंत्री मंईयां सम्मान योजना, मुख्यमंत्री पशुधन योजना, अबुआ आवास योजना सहित सभी प्रमुख कल्याणकारी सेवाओं के लिए आवेदन लिए जाएंगे।

साथ ही सैचुरेशन मोड में संचालित योजनाओं हेतु छूटे हुए योग्य लाभुकों से आवेदन भी प्राप्त किए जाएंगे। शिविरों में आयुष्मान कार्ड वितरण, CFR/ICR वन पट्टा आवेदन, दिव्यांगता प्रमाण-पत्र, आंदोलनकारी चिन्हितीकरण प्रमाण-पत्र, तथा विभिन्न पेंशन योजनाओं के लिए भी आवेदन स्वीकार किए जाएंगे।

21 नवंबर को इन प्रखंड-पंचायतों एवं नगर निगम क्षेत्र के वार्डों में लगेंगे शिविर


दिनांक 21.11.2025 : ईचाक–बोंगा, बरकट्ठा–बरकट्ठा दक्षिणी, बरही–बरही पूर्वी, बड़कागांव–बड़कागांव पश्चिमी, केरेडारी–केरेडारी, कटकमसाण्डी–पेलावल उत्तरी, कटकमदाग–खपरियावां, विष्णुगढ़–भेलवारा, सदर हजारीबाग–ओरिया, डाड़ी–डाड़ी, दारू–रामदेवखरिका, चौपारण–ताजपुर, चौपारण–चौपारण, चुरचू–आंगो, चलकुशा–खरगु, टाटीझरिया–टाटीझरिया, वार्ड 1, 3, 4–वार्ड विकास केन्द्र नूरा।

उपायुक्त श्री शशि प्रकाश सिंह (IAS) ने जिले के सभी नागरिकों से अपील करते हुए कहा कि 21 नवंबर से 15 दिसंबर तक आयोजित होने वाले इन शिविरों में अधिक से अधिक संख्या में पहुँचकर सरकार की योजनाओं का लाभ उठाएँ। जिला प्रशासन नागरिकों को दरवाजे पर सुविधा उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध है तथा प्रत्येक प्रखंड और पंचायत में शिविरों के सुचारु संचालन के लिए विशेष व्यवस्था की गई है।

21 नवंबर से 15 दिसंबर — हजारीबाग की सभी पंचायतों, बिरहोर टोला और शहरी क्षेत्र के चिन्हित वार्डों में लगेंगे MEGA शिविर!


शिविर में उपलब्ध प्रमुख सेवाएँ

  • जाति / आवासीय / आय प्रमाण-पत्र
  • अबुआ स्वास्थ्य सुरक्षा योजना
  • किसान क्रेडिट कार्ड
  • LAMPS–PACS सदस्यता
  • सर्वजन पेंशन योजना
  • सावित्रीबाई फुले किशोरी समृद्धि योजना
  • मुख्यमंत्री रोजगार सृजन योजना
  • बिरसा हरित ग्राम योजना
  • हरा राशन कार्ड
  • बिरसा सिंचाई कूप योजना
  • गुरुजी स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड
  • मुख्यमंत्री मंईयां सम्मान योजना
  • मुख्यमंत्री पशुधन योजना
  • अबुआ आवास योजना
  • राजस्व अभिलेख, जन्म-मृत्यु प्रमाणपत्र, आधार–राशन कार्ड, बिजली बिल आदि का समाधान


आपकी योजना आपकी सरकार आपके द्वार कार्यक्रम के सफल आयोजन को लेकर बैठक

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दिनांक 21.11.2025 से शुरु होनेवाले आपकी योजना आपकी सरकार आपके द्वार कार्यक्रम के सफल आयोजन को लेकर बैठक आज दिनांक 20.11.2025 को उपायुक्त-सह-जिला दण्डाधिकारी श्री मंजूनाथ भजन्त्री की अध्यक्षता में बैठक आयोजित की गयी। समाहरणालय स्थित एनआईसी सभागार में आयोजित बैठक में उपविकास आयुक्त रांची श्री सौरभ कुमार भुवनिया, अपर समाहर्ता श्री रामनारायण सिंह, पीडी आईटीडीए श्री संजय कुमार भगत, अनुमण्डल पदाधिकारी सदर श्री उत्कर्ष कुमार, विशिष्ट अनुभाजन पदाधिकारी श्रीमती मोनी कुमारी, जिला आपूर्ति पदाधिकारी श्री राम गोपाल पांडेय, जिला जनसंपर्क पदाधिकारी श्रीमती उर्वशी पांडेय, जिला शिक्षा पदाधिकारी श्री विनय कुमार, जिला शिक्षा अधीक्षक श्री बादल राज, जिला समाज कल्याण पदाधिकारी श्रीमती सुरभि सिंह सहित अन्य संबंधित पदाधिकारी उपस्थित थे। साथ ही जिला के सभी प्रख्ंाड विकास पदाधिकारी एवं अंचल अधिकारी ऑनलाइन माध्यम से जुड़े थे।

बैठक में उपायुक्त-सह-जिला दण्डाधिकारी श्री मंजूनाथ भजन्त्री द्वारा बताया गया कि इस अभियान के तहत राज्य सरकार की विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं से संबंधित आवेदन, समस्याएँ एवं शिकायतें पंचायतवार शिविर लगाकर प्राप्त की जाएंगी और उनके त्वरित निष्पादन की व्यवस्था की जाएगी। कार्यक्रम का उद्देश्य सरकारी सेवाओं को सीधे लोगों के द्वार तक पहुँचाना, पारदर्शिता बढ़ाना और लाभुकों को योजनाओं से जोड़ने की प्रक्रिया को सरल बनाना है।

उपायुक्त-सह-जिला दण्डाधिकारी श्री मंजूनाथ भजन्त्री द्वारा संबंधित पदाधिकारियों को निर्देश दिया कि शिविर स्थल, व्यवस्थाएँ, काउंटर की संख्या, दस्तावेज सत्यापन, तकनीकी सुविधा तथा जनसंपर्क से संबंधित सभी तैयारियां सुनिश्चित कर ली जाएँ, ताकि कोई भी लाभुक बिना किसी परेशानी के शिविर में अपनी आवश्यक कार्यवाही पूरी कर सके।

पंचायत स्तर पर आयोजित शिविर में जनप्रतिनिधियों को आमंत्रित करने का निर्देश

उपायुक्त-सह-जिला दण्डाधिकारी श्री मंजूनाथ भजन्त्री ने अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश देते हुए कहा कि पंचायत स्तर पर आयोजित होने वाले सभी शिविरों में स्थानीय जनप्रतिनिधियों को समयपूर्व आमंत्रित किया जाए, ताकि अधिक से अधिक ग्रामीण लाभुक योजनाओं का लाभ उठा सकें। उन्होंने कहा कि यह कार्यक्रम राज्य सरकार की प्राथमिकता में है और क्षेत्र स्तर पर सेवा सुनिश्चित कराने के लिए सभी विभागों द्वारा समन्वित प्रयास आवश्यक है।

आवेदन प्राप्त करने और निष्पादन में लापरवाही हुई तो होगी सख्त कार्रवाई

उपायुक्त-सह-जिला दण्डाधिकारी श्री मंजूनाथ भजन्त्री ने निर्देश दिया कि शिविरों में प्राप्त होने वाले सभी प्रकार के आवेदनों एवं शिकायतों का समुचित एवं समयबद्ध निष्पादन अनिवार्य रूप से सुनिश्चित किया जाए। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि आवेदन प्राप्त करने या निष्पादन में किसी प्रकार की लापरवाही पाई गई तो संबंधित पदाधिकारी/कर्मी पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।

दिनांक 21.11.2025 को निम्न पंचायतों में होगा शिविर का आयोजन

चतरा पंचायत, अनगड़ा

खुखरा पंचायत, बेड़ो

कांची पंचायत, बुण्डू

छापर पंचायत, बुढ़मू

पण्डरी पंचायत, चान्हो

गड़गांव पंचायत, ईटकी

उरुगुटू एवं उपरकोनकी पंचायत, कांके

हुल्सु पंचायत, लापुंग

बंझीला पंचायत, माण्डर

नारो पंचायत, नगड़ी

हरदाग पंचायत, नामकुम

जयडीहा पंचायत, ओरमांझी

राहे पंचायत, राहे

तारुप पंचायत, रातू

हलमाद पंचायत, सिल्ली

बारेन्दा पंचायत, सोनाहातू

अमलेशा पंचायत, तमाड़

वार्ड-1, सीएमपीडीआई स्कूल के सामने मार्केट के समीप

वार्ड-2, एदलहातू जोगो पहाड़

IITF 2025 में झारखंड की धूम: देश के 70% तसर सिल्क का उत्पादन कर बना 'तसर राजधानी', पवेलियन में महिलाएं दे रहीं लाइव डेमो

नई दिल्ली: भारत अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मेला (IITF) 2025 में झारखंड पवेलियन इस वर्ष तसर सिल्क के क्षेत्र में अपनी अद्वितीय पहचान के कारण विशेष रूप से सुर्खियों में है। झारखंड देश के कुल तसर उत्पादन का 70 प्रतिशत योगदान अकेले देता है, जिससे यह 'देश की तसर राजधानी' के रूप में स्थापित हो गया है।

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तसर से तरक्की का सफर

झारखंड का तसर उद्योग आज कच्चे रेशम के उत्पादन को बढ़ाने, संपूर्ण तसर इकोसिस्टम का निर्माण करने और स्थानीय आजीविका को सुदृढ़ करने के विज़न के साथ तेजी से आगे बढ़ रहा है।

उत्पादन में वृद्धि: 2001 में जहाँ 90 मीट्रिक टन कच्चे रेशम का उत्पादन होता था, वह बढ़कर 2024-25 में 1,363 मीट्रिक टन तक पहुँच गया है।

बुनियादी ढाँचा: राज्य में आज 100 कोकून संरक्षण केंद्र और 40 पूर्ण-सुविधायुक्त परियोजना केंद्र संचालित हो रहे हैं।

महिलाओं के नेतृत्व में सशक्तिकरण

इस अभूतपूर्व सफलता के केंद्र में झारखंड की महिलाएँ हैं, जिनकी तसर उत्पादन के 50-60 प्रतिशत कार्यों में सक्रिय भागीदारी है। कोकून प्रसंस्करण से लेकर यार्न उत्पादन (जो पूरी तरह महिला कर्मियों द्वारा किया जाता है) तक, महिलाएं इस अर्थव्यवस्था का महत्वपूर्ण स्तंभ हैं।

उद्योग विभाग और रेशम निदेशालय, झारक्राफ्ट, और JSLPS के सहयोग से, महिलाओं को प्रशिक्षण, रोजगार और बाजार तक पहुँच उपलब्ध कराई जा रही है। कॉमन फ़ैसिलिटी सेंटर (CFC) में 30-60 महिलाएँ एक साथ उत्पादन और कौशल विकास से जुड़कर स्वरोजगार की दिशा में बढ़ रही हैं।

पैवेलियन में लाइव डेमो आकर्षण का केंद्र

पवेलियन का मुख्य आकर्षण वह लाइव डेमो है, जहाँ प्रशिक्षित महिला कारीगर तसर कोकून से रेशम धागा निकालने की पारंपरिक प्रक्रिया (कोकून उबालने से लेकर धागा तैयार करने तक) का प्रत्यक्ष प्रदर्शन कर रही हैं। इसके साथ ही, "तम्सुम" उसी धागे से करघे पर कपड़ा बुनने की कला प्रस्तुत करती हैं।

यह अनोखा प्रदर्शन न केवल तसर उद्योग की समृद्ध विरासत, बल्कि ग्रामीण और आदिवासी क्षेत्रों में महिलाओं द्वारा स्थापित स्थायी आजीविका के मजबूत आधार को भी उजागर करता है।

फोटो --बैठक करते हुए जिलाधिकारी मीरजापुर

जिलाधिकारी ने मुख्यमंत्री डैशबोर्ड विकास कार्यो से सम्बन्धित बैठक कर की समीक्षा 

एक करोड़ से अधिक लागत वाली निर्माणाधीन परियोजनाओ, पूर्वांचल विकास निधि, क्रिटिकल गैप्स योजना, त्वरित आर्थिक विकास योजना, आकांक्षत्मक विकास खण्ड, वन ट्रिलियन डाॅलर की भी समीक्षा कर ली जानकारी

55 मदो, योजनाओ मे जनपद को ए श्रेणी प्राप्त, बी, सी व डी0 श्रेणी वाले अधिकारी अगले माह प्रगति मे सुधार लाते हुए ए श्रेणी लाना करें अन्यथा होगी कड़ी कार्यवाही -जिलाधिकारी

मीरजापुर। जिलाधिकारी पवन कुमार गंगवार की अध्यक्षता मे कलेक्ट्रेट सभागार में मुख्यमंत्री डैशबोर्ड जिला अनुश्रवण पुस्तिका विकास कार्यो से सम्बन्धित, एक करोड़ से अधिक लागत वाली निर्माणाधीन परियोजनाओ की समीक्षा, पूर्वांचल विकास निधि, क्रिटिकल गैप्स योजना, त्वरित आर्थिक विकास योजना, आकांक्षत्मक विकास खण्ड, वन ट्रिलियन डाॅलर की समीक्षा बैठक आहूत की गई। मुख्यमंत्री डैशबोर्ड जिला अनुश्रवण पुस्तिका विकास कार्यो से सम्बन्धित समीक्षा के दौरान 55 मदो, योजनाओं में जनपद को ए श्रेणी प्राप्त हुआ है। जिलाधिकारी बी व सी, डी श्रेणी वाले अधिकारियों पर कड़ी नाराजगी व्यक्त करते हुए निर्देशित किया कि अगले माह योजनाओं में व्यक्तिगत रूचि लेते हुए ए श्रेणी लाना सुनिश्चित करे अन्यथा सम्बन्धित के विरूद्ध कड़ी कार्यवाही की जाएगी। पीएम सूर्यघर मुफ्त बिजली योजना की समीक्षा के दौरान कलेक्ट्रेट, विकास भवन व सभी खण्ड विकास अधिकारी कार्यालयों में हेल्पडेस्क दो दिवसों में स्थापित करते हुए सूचना उपलब्ध कराए। अल्पसंख्यक कल्याण द्वारा छात्र वृत्ति व निशुल्क प्रतिपूर्ति की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी को निर्देशित करते कहा कि आवेदन के सापेक्ष अग्रसारित आवेदनों की शत प्रतिशत कराते हुए स्वीकृति हेतु भेजे। सैम व मैम बच्चों की समीक्षा मे जिलाधिकारी ने सभी अधिकारियों से कहा कि जनपद को कुपोषण से मुक्त कराना हम सभी का दायित्व है एवं सभी लोग अपनी सहभागिता से जनपद को कुपोषण मुक्त कराने मे अपना योगदान दे। उन्होंने कार्यक्रम अधिकारी को निर्देशित करते हुए कहा कि सैम व मैम बच्चों केन्द्रवार सूची उपलब्ध कराएं। उन्होंने सभी जनपदीय अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा प्रायः यह देखा की कि अपनी बिना अनुमति मुख्यालय से बाहर चले जाते है जिससे शासन द्वारा मांगी जाने वाली सूचना का प्रेषण समय से नही पाता है अतएव सभी अधिकारी मुख्यालय से पूर्व अनुमति अवश्य ले जिस अधिकारी के द्वारा बिना अनुमति मुख्यालय छोड़ेगा उस पर कठोरतम कार्यवाही की जाएगी। जिन मदो, योजनाओं में ए श्रेणी प्राप्त है यथा- पंडित दीनदयाल उपाध्याय सोलर स्ट्रीट लाइट योजना ए, सोलर स्ट्रीट लाइट बीकेएस ग्राम उन्नति योजना ए, एकीकृत बागवानी विकास मिशन ए, पर ड्राप मोर क्राप माइक्रो इरिगेशन ए, खराब ट्रांसफार्मर की शिकायतें ए, दैनिक विद्युत आपूर्ति घंटे ग्रामीण ए, दैनिक विद्युत आपूर्ति घंटे शहरी ए, विद्युत बिल में सुधार हेतु आवेदन ए, कृषि रक्षा रसायन डीबीटी ए, प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि ए, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना ए, पीएम कुसुम ए, बीज डीबीटी ए, प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण ए, मुख्यमंत्री आवास योजना ग्रामीण ए, मनरेगा ए, भवन निर्माण ए, सड़क निर्माण ए, एंबुलेंस 108 ए, एंबुलेंस 102 ए, बायोमेडिकल उपकरण रखरखाव कार्यक्रम ए, मोबाइल मेडिकल यूनिट ए, दुग्ध मूल्य भुगतान की स्थिति ए, सहकारी दुग्ध समितियां ए, दिव्यांग पेंशन ए, दिव्यांग पेंशन आधार सीडिंग ए, जल जीवन मिशन हर घर जल ए, व्यक्तिगत शौचालय निर्माण ए, स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण फेज-2 ए, सामाजिक वनीकरण ए, आपरेश कायाकल्य ए, पीएम पोषण विद्यालय निरीक्षण ए, अंडा उत्पादन ए, निराश्रित गोवंश का संरक्षण ए, पशु टीकाकरण ए, पशुओं में कृत्रिम गर्भाधान ए, संरक्षित निराश्रित गोवंश की सुपुर्दगी की ए, शादी अनुदान योजना ए, प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना ए, मुख्यमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना ए, मत्स्य उत्पादन ए, निराश्रित महिला पेंशन का आधार सीडिंग ए, पति की मृत्यु उपरान्त निराश्रित महिला पेंशन ए, मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना ए, प्रोजेक्ट अलंकार ए, सड़को का अनुरक्षण ए, कन्या विवाह सहायता योजना ए, मातृत्व शिशु एवं बालिका मद्द योजना ए, ओडीओपी वित्त पोषण योजना ए, मुख्यमंत्री युवा उद्यमी विकास अभियान ए, मुख्यमंत्री युवा स्वरोजगार योजना ए, राष्ट्रीय पारिवारिक लाभ योजना ए, राष्ट्रीय वृद्धावस्था पेंशन योजना ए, वृद्धावस्था पेंशन का आधार सीडिंग ए, जिला सहकारी बैंक अल्पकालीन ऋण वितरण एवं वसूली ए श्रेणी प्राप्त हुआ हैं। एक करोड़ से अधिक लगात वाली समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने निर्देशित किया निर्माणाधीन परियोजनाओं की गुणवत्ता का विशेष ध्यान दिया जाए यदि निरीक्षण के दौरान गुणवत्ता खराब पाई जाती है तो सम्बन्धित के ठेकेदार के विरूद्ध कड़ी कार्यवाही की जाएगी। उन्होंने कहा कि जिन परियोजना मे धनराशि है उन्हें समय से पूर्ण कराते हुए हैण्डओवर की कार्यवाही करें तथा जिन परियोजनाओं में बजट का अभाव है उनमे अपने मुख्यालय को पत्राचार कर बजट अवमुक्त कराए। उन्होंने सभी कार्यदायी संस्थाओ को निर्देशित करते हुए कहा कि ऐसी परियोजनाएं जिनके निर्माण मे विलम्ब हो रहा है उनमें शासन को पत्राचार करते हुए समय सीमा बढ़वाया जाए। उन्होंने सभी कार्यदायी संस्थाओं को निर्देशित करते हुए कहा कि जो योजना पूर्ण होने वाली है या पूर्ण चुकी है अभी हैण्डओवर नहीं हुआ है उन सभी योजनाओं में विद्युत कनेक्शन है अथवा नहीं या झटपट पोर्टल पर आवेदन किया गया है कि नहीं की सूचना जिला अर्थ संख्या अधिकारी के माध्यम से उपलब्ध कराए। तत्पश्चात पूर्वांचल विकास निधि, क्रिटिकल गैप्स योजना, त्वरित आर्थिक विकास योजना, आकांक्षत्मक विकास खण्ड, वन ट्रिलियन डाॅलर की बिन्दुवार विस्तृत समीक्षा कर आवश्यक दिशा निर्देश दिया। बैठक मुख्य विकास अधिकारी विशाल कुमार, मुख्य चिकित्साधिकारी डाॅ सीएल वर्मा, परियोजना निदेशक डीआरडीए धर्मजीत सिंह, उपायुक्त एनआरएलएम सहित अन्य सम्बन्धित अधिकारी उपस्थित रहें।

नेताजी सुभाष चंद्र बोस पब्लिक स्कूल, मटवारी में रंगोली एवं विज्ञान प्रदर्शनी का भव्य आयोजन

हजारीबाग : मटवारी स्थित नेताजी सुभाष चंद्र बोस पब्लिक स्कूल में आज रंगोली एवं विज्ञान प्रदर्शनी का शानदार आयोजन किया गया। कार्यक्रम का उद्घाटन हजारीबाग के सदर विधायक प्रदीप प्रसाद ने नेताजी सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर किया। उनके साथ डॉ. अमन उरवार, श्री सुधांशु शेखर झा, मंजू कुमारी सहित कई सम्मानित अतिथि उपस्थित रहे।‌ प्रदर्शनी में विद्यार्थियों ने अपने नए विचारों, वैज्ञानिक नवाचारों और परियोजनाओं की प्रभावशाली प्रस्तुति दी। करीब 100 विद्यार्थियों द्वारा 50 से अधिक मॉडल प्रदर्शित किए गए, जिनमें एंटी स्लीप अलार्म, ग्रीन हाउस इफेक्ट, जल चक्र, एफिसिएंट ट्रेन प्लेटफॉर्म क्रॉसिंग, सूर्य ग्रहण, बाढ़-रोधी घर, जलवायु परिवर्तन, कचरा प्रबंधन, वर्षा जल संरक्षण, पवन ऊर्जा, कार्बन से इंक बनाना, एनर्जी एफिशिएंट स्मार्ट सिटी, डीएनए मॉडल और स्वतः अग्निशामक यंत्र जैसी रचनात्मक परियोजनाएँ शामिल थीं। साथ ही विद्यार्थियों द्वारा बनाई गई प्रेरणादायक रंगोलियाँ भी आकर्षण का केंद्र रहीं, जिनमें बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ, माई ड्रीम टू मेक परफेक्ट अर्थ, डिजिटल अर्थ और जर्नी ऑफ अर्थ प्रमुख थीं। बड़ी संख्या में पहुंचे अभिभावकों, अतिथियों और विधायक प्रदीप प्रसाद ने प्रदर्शनी की प्रशंसा करते हुए इसे “अद्वितीय पहल” बताया। विद्यालय प्रधान देवेंद्र गोस्वामी ने कहा कि इस प्रदर्शनी का उद्देश्य छात्रों में रचनात्मकता, वैज्ञानिक सोच और जिज्ञासा को बढ़ावा देना है, जिसका सार्थक परिणाम देखने को मिला। उन्होंने कहा कि सही मार्गदर्शन और सहयोग मिले तो ये बच्चे देश का नाम रोशन करेंगे। प्रदर्शनी को सफल बनाने में विनीत, रिया, जैस्मिन, ऐमन, सुमित, शिवम सहित अनेक छात्रों के साथ शिक्षिकाओं नेहा परवीन, नेहा कुमारी, आरसी परवीन, रिया कुमारी, अजीत कुमार तथा पूर्व छात्र राहुल, अंकित, विकास, दानिश आदि का सराहनीय योगदान रहा।