नाबालिग से दुष्कर्म में दोषी को 10 साल का सश्रम कारावास
नौकरी का झांसा देकर अनुसूचित जाति की बच्ची के साथ हुआ था दुष्कर्म
हाजीपुर
नगरीय क्षेत्र में लगभग 03 वर्षों पूर्व अनुसूचित जाति की एक नाबालिग बच्चों के साथ नौकरी का झांसा देकर दुष्कर्म के मामले मंगलवार को अदालत का फैसला आया। इस मामले में अदालत ने दोषी युवक को 10 साल सश्रम करावास की सजा सुनाई है। साथ ही अर्थ दंड भी लगाया गया है।
नाबालिग से दुष्कर्म मामले में युवक को सश्रम करावास की सजा
लैंगिक अपराध से बालकों का संरक्षण अधिनियम की विशेष न्यायाधीश ने नाबालिग से दुष्कर्म के इस मामले में पॉस्कों की दफा 4 के तहत दोषी युवक को दस साल सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही 25 हजार रुपए अर्थ दंड भी लगाया है। अर्थ दंड की राशि नहीं देने पर तीन माह की अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी। यह जानकारी लैंगिक अपराध से बालकों का संरक्षण अधिनियम के विशेष लोक अभियोजक मनोज कुमार शर्मा ने दी है। उन्होंने बताया कि करीब तीन वर्ष पूर्व झारखंड की एक नाबालिग अनुसूचित जाति की बच्ची को दवा कम्पनी में नौकरी दिलाने का झांसा देकर हाजीपुर बुलाने और उसके साथ दुष्कर्म किए जाने के मामले में एक व्यक्ति को दोषी करार दिया गया था।
त्वरित न्याय के लिए जताया आभार
एक्सेस टू जस्ट्सि फॉर चिल्ड्रन कार्यक्रम के डायरेक्टर सह सचिव स्व. कन्हाई शुक्ला सामाजिक सेवा संस्थान सुधीर कुमार शुक्ला ने पीड़िता को त्वरित न्याय देने के लिए पॉक्सो कोर्ट के विशेष न्यायाधीश एवं विशेष लोक अभियोजक के प्रति आभार व्यक्त किया है।
नौकरी के नाम पर दुष्कर्म की इस तरह हुई थी घटना, पिता ने दर्ज कराई थी प्राथमिकी
झारखंड की एक 16 वर्षीया अनुसुचित जाति की बच्ची को मोबाइल पर कॉल कर एक दवा कंपनी में 6 हजार 500 रुपए वेतन देने का झांसा देकर पूर्वी चम्पारण जिला के सुगौली थाना क्षेत्र के भटहां निवासी आदित्य कुमार उर्फ अखिलेश कुमार ने हाजीपुर बुलाया। उक्त बच्ची अपने पिता के साथ उसके बुलावे पर मौर्य एक्सप्रेस से हाजीपुर 19 जुलाई 2022 को आई। हाजीपुर स्टेशन से उसके पिता को उक्त युवक ने उसकी बच्ची को किसी तरह की दिक्कत नहीं होने की बात बताकर लौटा दिया और उसकी बेटी को सदर थाना क्षेत्र स्थित जेल के निकट एक दूसरी युवती के रुम में ले गया। वहां उसी के साथ उसे रहने की बात बताकर चला गया। फिर कुछ देर बाद वहां आया और रुम वाली युवती को आफिस जाने के बहाने वहां से हटा दिया और उक्त नाबालिग के साथ जबरन शारीरिक संबंध बनाया ।इस घटना की प्राथमिकी पीड़िता ने सदर थाना में कराई। पुलिस ने इस मामले में 29 अप्रैल 2023 को न्यायालय में आरोप पत्र समर्पित किया। न्यायालय में 17 जुलाई को संज्ञान लिया।
न्यायालय ने अभियुक्त को दोषी करार दिया
इस मामले में आदित्य कुमार उर्फ अखिलेश कुमार के विरुद्ध 25 जुलाई 2023 को आरोप गठन किया। इस मामले में विशेष लोक अभियोजक मनोज कुमार शर्मा द्वारा कराए गए 09 साक्षियों एवं 18 प्रदर्श के परीक्षण -प्रतिपरीक्षण के बाद आदित्य कुमार उर्फ अखिलेश कुमार को नाबालिग बच्ची के साथ दुष्कर्म किए जाने को लेकर दोषी करार दिया गया। सजा की बिन्दु पर सुनवाई के लिए 11 मार्च की तिथि निर्धारित की गई है। त्वरित न्याय के लिए धन्यवाद दिया जा रहा है।
Mar 13 2025, 11:20