*कम्पोजिट विद्यालय जरैला की ज्योति बनीं प्रधानमंत्री, डिप्टी पीएम बने आदर्श*
रायबरेली। "जनता द्वारा, जनता के लिए, जनता का शासन है" अब्राहम लिंकन के इसी कथन को बताने के उद्देश्य से शनिवार को कम्पोजिट विद्यालय जरैला में बाल संसद की चुनावी प्रक्रिया कराई। आज बाल संसद के निर्वाचन की हुई प्रक्रिया में कक्षा-7 की छात्रा ज्योति प्रधानमंत्री के पद पर विजयी हुई। बाल संसद के चुनाव में जीते सभी प्रत्याशियों को जोनल मजिस्टेट एआरपी रितेश कुमार और प्रधानाध्यापक शैल कुमारी ने शपथ दिलाई। इस दौरान बच्चों में लोकतंत्र के उत्सव का अलग ही आनंद देखने को मिला।
अमावां ब्लॉक के कम्पोजिट विद्यालय जरैला में शनिवार को देश की सबसे बड़ी संसद की तुलना में बाल संसद का चुनाव कराया गया। विद्यालय की तरफ से 17 अगस्त को अधिसूचना जारी कर दी गई थी। 18 अगस्त को सभी स्कूली बच्चों की नामांकन प्रक्रिया को भी पूरा करा गया। 10 पदों के लिए विद्यालय में 30 से अधिक छात्रों ने आवेदन किया था। आज निर्वाचन अधिकारियों की निगरानी में चुनाव की प्रक्रिया सम्पन्न हुई। स्वतंत्र एवं निष्पक्ष चुनाव कराने के लिए आन्तरिक बल की तैनाती की गई थी।
विद्यालय की मीना मंच प्रभारी रित चौहान और मधु पाल ने बताया कि शनिवार को सम्पन्न हुई चुनावी प्रक्रिया में प्रधानमंत्री पद बहुत ही कांटे की टक्कर रही। महज एक वोट से उम्मीदवार ज्योति ने काजल को मात दी। इसके अलावा उपप्रधानमंत्री आदर्श, शिक्षामंत्री रुचि, स्वच्छता मंत्री सूरज, जल एवं कृषि मंत्री अनुज, विज्ञान मंत्री नव्या, सांस्कृतिक मंत्री राखी, सह मीना मंत्री मनीष, खेलमंत्री अर्जुन, उपखेलमंत्री के पद पर विपिन यादव चुने गए हैं।
विद्यालय में चुनावी प्रक्रिया कोमल, सचिन, नैंसी, प्रतिभा और अर्पित द्वारा सम्पन्न कराई गई। वहीं, आंतरिक सुरक्षा के रुप में सुरक्षा अधिकारी अंकित, प्रदीप, रोहन, अंशिका, प्रतिक्षा, रुचि व काजल तैनात रही।
इस मौके पर शिक्षक राम गोपाल, प्रेरणा अहिरवार, सुनीता, राजेश्वरी, प्रवेश, अर्चना ने चुनाव को सम्पन्न कराने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
बाल सदन का आखिर क्या है मकसद
चुनाव के जोनल मजिस्ट्रेट रहे एआरपी रितेश कुमार और प्रधानाध्यापक शैल कुमारी ने बताया कि बच्चों को चुनावी प्रक्रिया से रूबरू कराने के लिए बाल संसद का चुनाव कराया जाता है। देश की सबसे बड़ी संसद कैसे करके चलती है। प्रधानमंत्री से लेकर अन्य मंत्री कैसे करके काम करते हैं, इसकी हकीकत बच्चे वास्तविकता में जान सकें, बस इसी उद्देश्य के साथ में विद्यालयों में बाल संसद का गठन किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि कम्पोजिट विद्यालय जरैला में बहुत ही शानदार तरीके से लोकतंत्र का उत्सव मनाया गया है। उन्होंने बताया कि यही बच्चे भविष्य में जब वयस्क होकर खुद इसका हिस्सा बनेंगे, तो उन्हें इसका पूरा ज्ञान होगा।
Aug 21 2023, 19:10