राजधानी में फिर चाकूबाजी, दिनदहाड़े युवक का मर्डर, इलाके में मचा हड़कंप, आरोपी गिरफ्तार

रायपुर- राजधानी में मंगलवार को दिनदहाड़े चाकूबाजी की सनसनीखेज वारदात सामने आई है. आरोपी ने विवाद के बाद युवक की चाकू गोदकर हत्या कर दी. घटना से इलाके में हड़कंप मच गया है. पूरा मामला आजाद चौक थाना क्षेत्र के नगर निगम कॉलोनी का है. पुलिस ने वारदात को अंजाम देकर फरार आरोपी शुभम को गिरफ्तार कर लिया है. मृतक की पहचान गोपी निषाद के रूप में हुई है.

जानकारी के मुताबिक, गोपी निषाद उर्फ मंगल सुबह से शराब और गोली के नशे में धुत्त था. आज मंगलम भवन के सामने आरोपी शुभम साहू और गोपी निषाद के बीच नशे को लेकर मामूली विवाद हुआ. इस दौरान शुभम साहू ने गोपी निषाद के शरीर पर चाकू से ताबड़तोड़ हमला कर दिया. जिसके बाद गोपी निषाद की मौके पर ही मौत हो गई.

सूचना के बाद पुलिस मामले की जांच में जुट गई है. पुलिस ने आरोपी शुभम साहू को मेकाहारा के पास से गिरफ्तार कर लिया है. गौरतलब है कि आरोपी शुभम साहू पहले भी हत्या का प्रयास, मारपीट और चोरी जैसे अपराधों में जेल जा चुका है.

सुशासन तिहार: समस्याओं के समाधान के लिए आवेदन देने का सिलसिला शुरू, ग्रामीण और नगरीय क्षेत्रों में सुबह से ही लोग आवेदन देने पहुंचे

रायपुर-  मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के मार्गदर्शन में आज से शुरू हुए राज्य व्यापी “सुशासन तिहार में लोगों द्वारा अपनी समस्याओं के निराकरण के लिए आवेदन देने का सिलसिला शुरू हो गया है। ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में लोग बेहिचक आवेदन दे रहे हैं। लोगों को भरोसा है कि उनकी समस्याओं के निराकरण के लिए त्वरित पहल की जाएगी। सुशासन तिहार के पहले चरण में आम लोगों की समस्याओं के निराकरण के लिए 8 अप्रैल से 11 अप्रैल तक राज्य के सभी ग्राम पंचायतों, नगरीय निकायों और जिला मुख्यालयों में आवेदन लिए जा रहे हैं।

राजधानी रायपुर में आज कलेक्टर डॉ. गौरव सिंह ने राजधानी के विभिन्न वार्डों में पहुंच कर लोगों को अपनी समस्या के निराकरण के लिए आवेदन देने की अपील की। उन्होंने नगर निगम के जोन क्रमांक 4 के कार्यालय और विभिन्न वार्डों में आवेदन लिये जाने की प्रक्रिया का अवलोकन किया। उन्होंने लोगों से अपनी समस्याओं के निराकरण के लिए बिना किसी हिचक के आवेदन करने कहा।

महासमुंद जिले में कलेक्टोरेट, जनपद और तहसील कार्यालय में समाधान पेटी की व्यवस्था की गई है। सुशासन तिहार के सफल संचालन के लिए कलेक्टर द्वारा 51 नोडल अधिकारी तैनात किए गए हैं। कलेक्टर महासमुंद विनय कुमार लंगेह ने जिले के विभिन्न ग्राम पंचायतों का भ्रमण कर आवेदन लेने की प्रक्रिया का जायजा लिया और अधिकारियों से कहा कि लोगों को आवेदन देने के लिए किसी प्रकार का दिक्कत न हो इसका विशेष रूप से ध्यान दें। आवश्यकतानुसार कई केंद्रों में आवेदन देने मदद करने के लिए कर्मचारी तैनात किए गए हैं।

धमतरी जिले के कलेक्टर अबिनाश मिश्रा सहित जिला पंचायत सीईओ रोमा श्रीवास्तव और तीनों अनुभागों के अनुविभागीय राजस्व अधिकारियों ने आज पोटियाडीह, परसतराई, ग्राम पंचायतों में पहुंचकर सुशासन तिहार के दौरान आवेदन लेने की प्रक्रिया का अवलोकन किया। इस दौरान अशिक्षित आवेदकों के आवेदन लिखने के लिए किसी कर्मचारी की ड्यूटी लगाने के निर्देश दिए। कलेक्टर ने कहा कि किसी भी व्यक्ति को आवेदन देने से मना या रोका नहीं जाए। इसके बाद कलेक्टर ने नगर निगम क्षेत्र में हटकेशर वार्ड पहुंचकर वहां मौजूद महिलाओं और लोगों से बातचीत की। उन्होंने लोगों से अधिक से अधिक संख्या में अपनी मांगों और समस्याओं के निराकरण के लिए आवेदन करने को कहा।

जगदलपुर जिले में जिले के सभी गांवों, नगरीय क्षेत्रों के सभी वार्डों कलेक्टर कार्यालय सहित सभी शासकीय कार्यालयों में लोगों से आवेदन लेने के लिए समाधान पेटी की व्यवस्था की गई है। इसी प्रकार बालोद जिले में भी लोगों से आवेदन लेने के लिए सभी महत्वपूर्ण स्थानों में समाधान पेटी की व्यवस्था की गई है।

नागरिकों को है सुशासन पर भरोसा

महासमुंद जिले के ग्राम परसदा के निवासी विक्रम चंद्राकर ने गांव में पेयजल की समस्या को देखते हुए नलकूप खनन के लिए आवेदन किया है। उन्हें विश्वास जताया है कि उनकी मांग का निराकरण होगा। इसी तरह ग्राम खैराभाठा के दुलारी बाई तारक ने कहा कि यह सरकार की अच्छी सोच है कि हमें अपनी मांग और समस्याओं को बताने एक उचित प्लेटफॉर्म मिल रहा है।

सुशासन तिहार का उद्देश्य आम जनता की समस्याओं का समयबद्ध निराकरण सुनिश्चित करना, शासन की जनकल्याणकारी योजनाओं के क्रियान्वयन की समीक्षा करना तथा विकास कार्यों में गति लाने के साथ ही आम जनता जनप्रतिनिधियों और विभिन्न सामाजिक संगठनों से सीधा संवाद स्थापित करना है। सुशासन तिहार तीन चरणों में आयोजित होगा पहले चरण में 8 अप्रैल से 11 अप्रैल 2025 तक आम जनता से आवेदन प्राप्त किए जाएंगे। दूसरे चरण में लगभग एक माह के भीतर प्राप्त आवेदनों का निराकरण किया जाएगा। तीसरे एवं अंतिम चरण में 5 मई से 31 मई 2025 के बीच समाधान शिविरों का आयोजन किया जाएगा।

साय मंत्रिमंडल विस्तार को अमरजीत भगत ने बताया झुनझना, कहा- सिर्फ दिखा रहे हैं, दे नहीं रहे…

रायपुर- पूर्व मंत्री और कांग्रेस के बड़े आदिवासी चेहरा अमरजीत भगत इन दिनों अपने अंदाज के लिए खासे चर्चा में हैं. अबकी बार उन्होंने झुनझना बजाकर मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के मंत्रिमंडल में विस्तार को लेकर कटाक्ष किया है. उन्होंने कहा कि मंत्रिमंडल विस्तार नहीं, झुनझुना मात्र है.

कांग्रेस नेता अमरजीत सिंह भगत ने मीडिया से साय मंत्रिमंडल में विस्तार को लेकर कहा कि सिर्फ दिखा रहे हैं, दे नहीं रहे हैं. हमारे पुराने मित्र राजेश मूणत और अजय चंद्राकर को लिस्ट से ही गायब कर दिया गया है. अब नितिन नबीन आएंगे और झुनझुना बजाएंगे.

वहीं बर्खास्त बीएड सहायक शिक्षकों के समायोजन को लेकर बृजमोहन अग्रवाल द्वारा लिखे गए पत्र को अमरजीत भगत ने पेपर बम करार दिया है. उन्होंने कहा कि सरकार के साथ सांसद अग्रवाल का तालमेल नहीं है. उन्होंने कहा कि जो बहन-बेटियां आग में चल रही है, उनकी समस्या का हाल कौन निकालेगा. सत्ता सिर्फ सुख के लिए नहीं होता.

बता दें कि भारतीय जनता पार्टी के सोशल मीडिया ग्रुप में चल रहे मैसेज के अनुसार, साय मंत्रिमंडल का विस्तार 10 अप्रैल को होने जा रहा है. इसमें अलग-अलग वर्गों को ध्यान में रखते हुए तीन नए मंत्री शपथ लेने जा रहे हैं. वायरल मैसेज के मुताबिक, विधानसभा उपाध्यक्ष के साथ-साथ एक दर्जन से ज्यादा संसदीय सचिवों की ताजपोशी भी होगी. 

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय से एसईसीएल के नवनियुक्त सीएमडी हरीश दुहन ने की सौजन्य भेंट

रायपुर-  मुख्यमंत्री विष्णु देव साय से आज उनके निवास कार्यालय में साउथ ईस्टर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड (एसईसीएल) के नव नियुक्त अध्यक्ष-सह-प्रबंध निदेशक (सीएमडी) हरीश दुहन ने सौजन्य मुलाकात की। मुख्यमंत्री श्री साय ने श्री दुहन को नई जिम्मेदारी के लिए शुभकामनाएं दी।

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय को श्री दुहन ने एसईसीएल द्वारा कॉर्पोरेट सामाजिक दायित्व (CSR) के अंतर्गत राज्य के खनन प्रभावित क्षेत्रों में किए जा रहे विकास कार्यों की जानकारी दी। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने इन प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार राज्य के औद्योगिक और सामाजिक विकास के लिए हरसंभव सहयोग देने के लिए प्रतिबद्ध है।

धान खरीदी घोटाला में 20 साल बाद फैसला, कोर्ट ने 17 आरोपियों को सुनाई सजा, नपा अध्यक्ष का भाई और चाचा भी शामिल

बलरामपुर- जिले में 20 वर्ष पूर्व धान खरीदी में हुई गड़बड़ी पर अब कोर्ट का बड़ा फैसला आया है, जिसमें कुल 17 दोषियों को कारावास की सजा सुनाने के साथ जुर्माना भी लगाया है. मामले में रामानुजगंज नगर पालिका के अध्यक्ष रमन अग्रवाल के सगे भाई और चाचा भी शामिल हैं. 

कहते हैं देर है, पर अंधेर नहीं. ऐसा ही कुछ वर्ष 2003-04 में कामेश्वरपुर और रामचंद्रपुर के सहकारी समिति में हुई धान खरीदी घोटाले में हुई है. कोर्ट ने धान खरीदी में गड़बड़ी करने वाले 17 लोगों के खिलाफ फैसला सुनाया है. किसानों ने धान बेचा था, और पैसा दोषियों के खाता में पैसा गया था. दरअसल, कागजों में ही धान खरीदी कर ली गई थी.

आरोपियों को अदालत को तीन-तीन साल की सजा और 500-500 रुपए जुर्माना की सजा सुनाई गई. कलेक्टर के आदेश पर फूड विभाग के अफसरों की जांच रिपोर्ट के आधार पर एफआईआर दर्ज कराई गई थी. कोर्ट ने 2018 में भी सजा सुनाई थी, लेकिन आरोपियों ने ऊपरी अदालत में अपील की थी. अपील को खारिज करते हुए रामानुजगंज जिला न्यायालय ने आरोपियों को सजा सुनाई है.

भाजपा के राष्ट्रीय सह संगठन मंत्री शिव प्रकाश आएंगे रायपुर, कल महामंत्रियों, पदाधिकारियों और जनप्रतिनिधियों की लेंगे बैठक

रायपुर- भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय सह संगठन मंत्री शिवप्रकाश कल यानी 9 अप्रैल को पार्टी पदाधिकारियों और जनप्रतिनिधियों के साथ बैक टू बैक बैठकें करेंगे. वे आज रात रायपुर पहुंचेंगे. निगम, मंडल, आयोग और बोर्ड में हुई नियुक्ति के बाद यह उनका पहला दौरा है. साय मंत्रिमंडल विस्तार की अटकलों के बीच उनका दौरा काफी अहम माना जा रहा है.

भाजपा प्रदेश महामंत्री जगदीश (रामू) रोहरा ने जानकारी देते हुए बताया कि शिवप्रकाश 9 अप्रैल को सुबह 9:30 से 10:30 बजे तक पार्टी के महामंत्रियों की बैठक लेंगे. इसके बाद सुबह 10:30 से दोपहर 12:30 बजे तक निगम-मंडल और आयोगों के अध्यक्षों और उपाध्यक्षों के साथ बैठक होगी.

दोपहर 12:30 से 1:30 बजे तक भाजपा के सभी मोर्चों के प्रदेश अध्यक्षों की बैठक रखी गई है. वहीं दोपहर 3 बजे से 4:30 बजे तक नगरीय-निकायों के महापौर, सभापति, अध्यक्ष और उपाध्यक्षों के साथ-साथ जिला पंचायतों के अध्यक्ष और उपाध्यक्षों के साथ बैठक करेंगे.

नगरनार स्टील प्लांट में भीषण आग, नहीं हुई कोई जनहानि, लेकिन करोड़ों का हुआ नुकसान…

जगदलपुर- नगरनार स्थित एनएमडीसी स्टील प्लांट में उस वक्त हड़कंप मच गया, जब कोक ओवन सेक्शन में गैस लीक के बाद भीषण आग भड़क उठी. आग इतनी विकराल थी कि 10 किलोमीटर दूर से लपटें और धुआं साफ नजर आ रहे थे, प्लांट में रखी कीमती बैटरियां जलकर खाक हो गईं. 

फायर ब्रिगेड की गाड़ियां शहर से 18 किमी दूर से घटनास्थल पर पहुंचीं और करीब एक घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया जा सका. इस हादसे से प्लांट को करोड़ों का नुकसान हुआ है, मेंटनेंस और उत्पादन में देरी से भी बड़ा घाटा होगा.

इस पूरे घटनाक्रम में राहत की बात यह रही कि समय रहते कर्मचारियों ने खुद को सुरक्षित कर लिया, जिससे जनहानि नहीं हुई. आग लगते ही पूरे प्लांट में अफरा-तफरी मच गई, कर्मचारी जान बचाने में जुटे रहे, वहीं अधिकारी हालात को रूटीन बताकर कर्मचारियों को काम पर लगाए रखने का दबाव बनाते रहे.

चिंता की बात यह है कि पूर्व में भी आगजनी और हॉट मेटल के छिड़काव जैसी घटनाएं हो चुकी हैं, जिनमें कर्मचारी गंभीर रूप से घायल हुए थे, फिर भी न तो आग से बचाव के पुख्ता इंतजाम किए गए, न ही कर्मचारी इलाज के लिए कोई अस्पताल प्लांट के पास मौजूद है.

छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट के इतिहास में पहली बार, चीफ जस्टिस सिन्हा ने वर्चुअली की मामलों की सुनवाई

बिलासपुर- छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट के इतिहास में पहली बार हुआ, जब किसी जस्टिस ने वर्चुअली किसी मामले की सुनवाई की है. कोराेना काल में वर्चुअल सुनवाई का दौर शुरू हुआ था. लेकिन तब याचिकाकर्ता और प्रमुख पक्षकारों के अधिवक्ताओं को वर्चुअल जुड़ने की छूट थी. वे वर्चुअल जुड़कर अपने मामलों की पैरवी किया करते थे. वहीं जज हाई कोर्ट में बैठकर सुनवाई करते थे. 

दरअसल, हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा की माता की तबीयत खराब है, इसलिए वे बीते कुछ दिनों से इलाज के लिए उन्हें लखनऊ लेकर गए हैं. मां की बीमारी और पारिवारिक जिम्मेदारियों के बाद भी उन्होंने अपनी ड्यूटी पूरी शिद्दत के साथ निभाई. चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा ने मामलों मुकदमों की बढ़ती संख्या और याचिकाकर्ताओं की परेशानी को देखते हुए डिवीजन बेंच और सिंगल बेंच में लगे मामलों की सुनवाई करने का फैसला किया, और लखनऊ से सीधे वर्चुअल जुड़कर सुनवाई की.

चीफ जस्टिस ने रजिस्ट्रार जनरल को निर्देशित किया था, कि उनके डिवीजन बेंच और सिंगल बेंच के मामलों की लिस्टिंग करें. वे लखनऊ से वर्चुअल जुड़कर सुनवाई करेंगे. लिहाजा छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट में पहली डिवीजन बेंच अपने नियत समय पर लगी और सुनवाई शुरू हुई.

हाई कोर्ट के डिवीजन बेंच एक में जस्टिस अरविंद वर्मा और याचिकाकर्ता व प्रमुख पक्षकारों के वकील थे. इधर चीफ जस्टिस ने समय पर वर्चुअल जुड़कर सुनवाई शुरू की. जस्टिस वर्मा मामलों के बारे में बता रहे थे और उनसे सीधे चर्चा कर रहे थे. निर्धारित समय तक डिवीजन बेंच में सुनवाई हुई. लंच के बाद चीफ जस्टिस ने सिंगल बेंच में सुनवाई की.

छत्तीसगढ़ के कांग्रेस नेता की भी फर्जी डॉक्टर के ऑपरेशन के बाद गई थी जान, सीएमएचओ ने बिलासपुर अपोलो अस्पताल से मांगा जवाब…

बिलासपुर- दमोह के मिशन अस्पताल में हार्ट सर्जरी के बाद सात मरीजों की मौत के मामले के तार बिलासपुर के अपोलो अस्पताल से जुड़ रहे हैं. खुद को कार्डियोलॉजिस्ट बताने वाले फर्जी डॉक्टर नरेंद्र विक्रमादित्य यादव उर्फ नरेंद्र जॉन केम पर आरोप है कि इन्हीं की लापरवाही से अपोलो अस्पताल में भी 7–8 मरीजों की जान गई थी, जिसमें दिग्गज कांग्रेस नेता राजेंद्र प्रसाद शुक्ल भी शामिल थे. 

छत्तीसगढ़ विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष राजेंद्र शुक्ल करीब 32 साल तक विधायक रहे. 20 अगस्त 2006 को उनकी तबीयत बिगड़ने पर उन्हें अपोलो अस्पताल में भर्ती कराया गया था. ऑपरेशन के दौरान उनकी मौत हो गई. उनका ऑपरेशन भी कथित डॉक्टर नरेंद्र ने किया था.

दमोह की घटना सामने आने अब पूर्व विधानसभा अध्यक्ष राजेंद्र प्रसाद शुक्ल के परिजनों ने मामले की जांच की मांग की है. वहीं अपोलो हॉस्पिटल प्रबन्धन 17-18 साल पुराने दस्तावेज खंगाल रहा है.

राजेन्द्र शुक्ल के बेटे प्रोफेसर प्रदीप शुक्ल ने बताया कि नरेंद्र दो से तीन महीने के लिए अपोलो आया था. इस दौरान 8 से 10 मरीजों की मौत हुई थी. जब विवाद बढ़ा तो आईएमए के तत्कालीन अध्यक्ष और कार्डियोलॉजिस्ट डॉ. वायएस दुबे ने इसकी जांच करवाई. जांच में पाया गया कि नरेंद्र के दस्तावेज फर्जी थे. उसके पास केवल एमबीबीएस की डिग्री थी, वह कार्डियोलॉजिस्ट नहीं था.

बताया जा रहा है कि नरेंद्र का असली नाम नरेंद्र विक्रमादित्य यादव है. वह देहरादून का रहने वाला है. दस्तावेजों में नाम नरेंद्र जॉन केम लिखा है. उसके पास 2006 में एमबीबीएस की डिग्री है, जो आंध्र प्रदेश मेडिकल कॉलेज की बताई गई है. उसका रजिस्ट्रेशन नंबर 153427 दर्ज है. इसके बाद जो 3 एमडी और कार्डियोलॉजिस्ट की डिग्रियां दी गई हैं, उनमें किसी का रजिस्ट्रेशन नंबर नहीं है. ये डिग्रियां कलकत्ता, दार्जिलिंग व यूके की बताई गई हैं.

मुख्यमंत्री का संदेश: पारदर्शिता, तत्परता और संवाद ही सुशासन का आधार, प्रदेश-व्यापी सुशासन तिहार 2025 का आगाज़ 8 अप्रैल से

रायपुर-  मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के मार्गदर्शन में जनता-जनार्दन की समस्याओं के निदान और उनसे रूबरू मुलाकात के लिए सुशासन तिहार का प्रदेशव्यापी शुभारंभ 8 अप्रैल से होने जा रहा है। तीन चरणों में आयोजित होने वाला यह सुशासन तिहार 31 मई तक चलेगा।

प्रथम चरण में 8 अप्रैल से 11 अप्रैल तक आम जनता से ग्राम पंचायतों एवं नगरीय निकायों के कार्यालयों में सीधे आवेदन लिए जाएंगे। सुशासन तिहार के अंतर्गत ऑनलाइन आवेदन पोर्टल एवं कॉमन सर्विस सेंटर के जरिए भी आवेदन प्राप्त किए जाएंगे। विकासखंडों और जिला मुख्यालयों में भी आवेदन प्राप्त करने हेतु समाधान पेटी रखी जाएगी।

उल्लेखनीय है कि छत्तीसगढ़ राज्य इस वर्ष अपनी स्थापना की रजत जयंती मना रहा है। यह वर्ष सौभाग्य से छत्तीसगढ़ राज्य के निर्माता, भारत रत्न पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी का जन्म शताब्दी वर्ष भी है, जिसे राज्य सरकार "अटल निर्माण वर्ष" के रूप में मना रही है। सुशासन की दिशा में प्रदेश सरकार द्वारा किए जा रहे प्रयासों की कड़ी में सुशासन तिहार-2025 का आयोजन एक महत्वपूर्ण पहल है।

सुशासन तिहार-2025 के तहत सभी प्राप्त आवेदनों की सॉफ्टवेयर में प्रविष्टि कर संबंधित विभागों को सौंपा जाएगा, और एक माह के भीतर उनका निराकरण सुनिश्चित किया जाएगा।

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने सभी जिला कलेक्टरों को निर्देश दिए हैं कि वे सुशासन तिहार के सुव्यवस्थित आयोजन और इसके अंतर्गत प्राप्त होने वाले आवेदनों के तत्परता से निराकरण को सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि राज्य और जिला स्तर पर निराकरण की स्थिति और गुणवत्ता की समीक्षा भी की जाएगी।

समाधान शिविर और योजनाओं का प्रचार

तीसरे चरण में प्रत्येक जिले की 8 से 15 ग्राम पंचायतों के मध्य समाधान शिविर आयोजित होंगे। नगरीय निकायों में भी आवश्यकतानुसार शिविरों का आयोजन किया जाएगा।

शिविरों में आमजन को उनके आवेदन की स्थिति से अवगत कराया जाएगा, तथा यथासंभव आवेदन का त्वरित निराकरण भी वहीं किया जाएगा। शेष समस्याओं का निराकरण एक माह के भीतर कर सूचना दी जाएगी। शिविरों में जनकल्याणकारी योजनाओं की जानकारी दी जाएगी और हितग्राहीमूलक योजनाओं के आवेदन प्रपत्र भी उपलब्ध कराए जाएंगे। इस अभियान में सांसदों, विधायकों और अन्य जनप्रतिनिधियों की सक्रिय भागीदारी सुनिश्चित की जा रही है। मुख्यमंत्री, मंत्रीगण, मुख्य सचिव, प्रभारी सचिव एवं वरिष्ठ अधिकारी स्वयं शिविरों में उपस्थित रहकर आमजन से संवाद करेंगे, और विकास कार्यों व योजनाओं से मिल रहे लाभ का फीडबैक लेंगे। साथ ही औचक निरीक्षण के माध्यम से चल रहे कार्यों की वास्तविकता का भी मूल्यांकन किया जाएगा।

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा है कि सुशासन तिहार 2025 का उद्देश्य जनसामान्य की समस्याओं का प्रभावी एवं त्वरित समाधान, शासकीय कार्यों में पारदर्शिता और जनता से सीधा संवाद स्थापित करना है। उन्होंने प्रदेशवासियों से अपील की है कि वे सुशासन तिहार से जुड़ें और शासन-प्रशासन को अपनी समस्याओं से अवगत कराएं, ताकि उनके समाधान की दिशा में ठोस पहल की जा सके।