वन क्षेत्र में रहने वाले ग्रामीण अकेले ना जाएं घर से बाहर- DFO
महेश चंद्र गुप्ता/बहराइच
बहराइच जनपद में बढ़ती हुई ठंडक और घने कोहरे के बीच जंगली जानवरों के हमलों में बढ़ोतरी हुई है। जंगली जानवरों ने बीते दो दिनों में तीन लोगों को अपना शिकार बनाया है। जिसमें एक की मौत हो गई है और दो घायल हैं। ऐसे में कतरनिया वन्य जीव प्रभाव के डीएफओ बी शिव शंकर ने वन क्षेत्र में रहने वाले ग्रामीण से अपील करते हुए कहा है कि बढ़ती ठंडक में घना कोहरा हो रहा है इस घने कोहरे में टाइगर के हमला करने की गुंजाइश बढ़ जाती है। सुनसान जगह पर कोई भी ग्रामीण अकेले न जाएं अगर जाना है तो चार-पांच आदमियों का समूह बनकर ही चलें। शौचालय के लिए सुनसान इलाकों में न जाए। अपने घरों में बने हुए शौचालय का प्रयोग करें। बच्चों को अकेला ना छोड़े और लकड़ी आदि बीनने के लिए बच्चों को जंगल न जाने दें। अक्सर देखा गया है कि जलौनी लकड़ी की तलाश में ग्रामीण अकेले ही जंगलों की तरफ चले जाते हैं ऐसा बिल्कुल ना करें ना खुद अकेले जाएं और ना ही बच्चों को अकेला जाने दें क्योंकि टाइगर या लेपर्ड इसी घात में बैठे रहते हैं कि कहीं से कोई शिकार उनके मुंह लग जाए इसलिए अपनी जान की सलामती के लिए इन बातों का ख्याल रखें।
टाइगर और लेपर्ड के बढ़ते हुए हमले से ग्रामीण बुरी तरह भयभीत हैं। ग्रामीणों के सामने सबसे बड़ी समस्या यह है कि जब उनका घर जंगल में ही है तो वह आखिर जंगल छोड़कर कहां चले जाएं सुबह से लेकर शाम तक और रात तक की दिनचर्या में जंगल शामिल है अब अगर ऐसे में जंगली जानवरों के हमले ऐसे ही बढ़ते रहेंगे तो वन्य क्षेत्र में रहने वाले लोगों का जीना मुहाल हो जाएगा। फिलहाल कतर्निया घाट के डीएफओ बी शिव शंकर ने बचाव के कुछ तरीके ग्रामीणों को बताए हैं अब देखने वाली बात यह होगी कि ग्रामीण इसको कितना अमल में ला पाते हैं और घटनाएं कितनी रुकती हैं।
Jan 07 2025, 19:06