विद्युत व्यवस्था के सुदृढीकरण, अनुरक्षण एवं जन समस्याओं के त्वरित निस्तारण के लिए चलेगा 10 दिवसीय विशेष अभियान
लखनऊ। प्रदेश के नगर विकास एवम् ऊर्जा मंत्री ए.के. शर्मा ने विद्युत संरचना के सुदृढ़ीकरण, अनुरक्षण एवं जन शिकायतों के त्वरित समाधान के लिए 20 फरवरी से 29 फरवरी, 2024 तक पूरे प्रदेश में चलने वाले “बिजली सेवा एवं जनसम्पर्क अभियान“ की शुरूआत की। ऊर्जा मंत्री ने मंगलवार को 33/11 केवी विद्युत उपकेन्द्र, अर्जुनगंज लखनऊ में पहुँचकर इस 10 दिवसीय अभियान का शुभारम्भ किया। उन्होंने सभी जनप्रतिनिधियों और जनता को इस अभियान से जुड़ने और विद्युत व्यवस्था संबंधी अपने सुझावों के माध्यम से विभाग का सहयोग करने का आग्रह किया।

ऊर्जा मंत्री एके शर्मा ने कहा कि ग्राउण्ड ब्रेकिंग सेरेमनी 4.0 में प्रधानमंत्री ने प्रदेश की विद्युत व्यवस्था की तारीफ की है। इसके पहले भी केन्द्रीय ऊर्जा मंत्री ने पीक डिमाण्ड के समय उत्तर प्रदेश द्वारा देश में सर्वाधिक विद्युत आपूर्ति करने तथा पूरे देश में विद्युत के क्षेत्र में सर्वाधिक भौतिक प्रगति करने सराहना की गई। कहा कि बिजली के क्षेत्र में उत्तर प्रदेश सबसे अच्छा कार्य कर रहा। उन्होंने उपभोक्ताओं से अपील की है कि विद्युत विभाग द्वारा संचालित व्यवस्थाओं एवं सुविधाओं का अधिक से अधिक लाभ उठाकर अपनी समस्याओं का समाधान करायें। प्रदेश विद्युत की समस्या से हमेशा के लिए मुक्त हो इसके युद्ध स्तर पर कार्य किया जा रहा। अभियान के दौरान इस दौरान अधीक्षण अभियन्ता अपने कार्यक्षेत्र में आने वाले सभी सांसद, विधायक, महापौर नगर निगम, अध्यक्ष नगर पालिका/नगर पंचायत व उपभोक्ताओं से शिकायतों के प्रभावी निस्तारण के लिए फीडबैक व सुझाव प्राप्त किये जायेंगे। मंत्री श्री शर्मा ने बताया कि आरडीएसएस योजना के लॉस रिडक्शन मद में लगभग 13,500 करोड़ रूपये के कार्य कराये जा रहे हैं। आरडीएसएस योजना के एएमआईएसपी (स्मार्ट मीटर) मद में समस्त उपभोक्ताओं के संयोजन को प्री-पेड स्मार्ट मीटर से करने की योजना बनायी गयी है। उन्होंने कहा कि बिज़नेस प्लान/अतिरिक्त बिजनेस प्लान / नगर निकायों की विद्युत व्यवस्था सुदृढ़ करने के लिए भी लगभग 5,000 करोड़ रूपये के कार्य कराये कराये जा रहे हैं।

उपभोक्ताओं की सुविधा के लिए स्वयं अपना बिल बनाने हेतु ट्रस्ट बिलिंग की व्यवस्था तथा नये कनेक्शन लेने, लोड बढ़ाने, बिलों के भुगतान करने इत्यादि कार्यों को भी पूर्णतः ऑनलाइन कर दिया गया है। ऊर्जा मंत्री ने कहा मा. प्रधानमंत्री जी ने सोलर रूफटॉप के लिए ’पी०एम०-सूर्य घरः मुफ्त बिजली योजना की घोषणा की है। इस योजना के अंतर्गत दी जा रही सब्सिडी एवं सरलीकृत नवीन व्यवस्था के बारे में भी अभियान के दौरान सभी को अवगत कराते हुए योजना के प्रचार-प्रसार के साथ ही अधिक से अधिक उपभोक्ताओं को सोलर रूफटॉप हेतु आवेदन करने के लिए भी प्रेरित किया जायेगा। मा. जन प्रतिनिधियों से उनके क्षेत्र में कराये जा रहे कार्यों की प्रगति के सम्बन्ध में फीडबैक भी प्राप्त करते हुए अन्य स्थानीय मुद्दे जो आवश्यक हों, उन पर भी चर्चा कर सुझाव प्राप्त किए जायेंगे। इस अवसर पर चेयरमैन यूपीपीसीएल डॉ आशीष कुमार गोयल, मुख्य अभियन्ता लेसा तथा उपकेन्द्र के अधिकारी, जनप्रतिनिधि एवं क्षेत्रीय उपभोक्ता मौजूद थे।
ग्राउण्ड ब्रेकिंग सेरेमनी में पशुधन विभाग की 2131.65 करोड़ रुपये की 532 निवेश परियोजनाओं की रखी गई आधारशिला
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के पशुधन एवं दुग्ध विकास मंत्री धर्मपाल सिंह ने कहा कि राजधानी लखनऊ में आयोजित ग्राउण्ड ब्रेकिंग सेरेमनी के तहत पशुधन विभाग में 2131.65 करोड़ रुपये की 532 निवेश परियोजनाओं की आधारशिला रखी गई। इन परियोजनाओं के मूर्तरूप लेने से 123167 लोगों को रोजगार प्राप्त होगा।

उन्होंने कहा कि सेरेमनी में 1250 करोड़ रुपये की परियोजनाओं के अधारशिला का लक्ष्य था, जिसके सापेक्ष 180 प्रतिशत अधिक सफलता प्राप्त हुई है। धर्मपाल सिंह आज विधान भवन स्थित अपने कार्यालय कक्ष में ग्राउण्ड ब्रेकिंग सेरेमनी के अंतर्गत पशुधन एवं दुग्ध विकास विभाग के निवेश परियोजनाओं की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि 532 निवेशक परियोजनाओं में से अयोध्या मण्डल में सर्वाधिक 111 परियोजनाओं की आधारशिला रखी गई है। क्षेत्रवार इन्वेस्ट यूपी के तहत जेबीसी में पूर्वाचल में 229, मध्यांचल में 145, पश्चिमांचल में 114 तथा बुंदेलखण्ड में 44 निवेशकों द्वारा विशेष रूचि दिखाई गई है। उन्होंने बताया कि एनीमल हास्बेन्ड्री इन्फ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फण्ड, पोल्ट्री सेक्टर तथा नेशनल लाईवस्टाक मिशन के क्षेत्र में निवेश किया गया है।

साथ ही उत्तर प्रदेश में ब्रीडिंग फार्म्स के प्रति निवेशकों द्वारा विशेष आकर्षण दिखाया गया है, जिससे प्रदेश में उन्नत नस्ल/प्रजाति के दुधारू पशु प्राप्त होंगे, इससे दुग्ध उत्पादन के क्षेत्र में तीव्र वृद्धि होगी और किसानां एवं पशुपालकों की आय बढ़ेगी। धर्मपाल सिंह ने कहा कि डेयरी क्षेत्र में 10021.66 करोड़ रुपये की 253 परियोजनाओं की आधारशिला रखी गई। परियोजनाओं के पूर्ण होने पर 25338 लोगों को रोजगार मिलेगा। उन्होंने कहा कि बरेली में सर्वाधिक 1002 करोड़ रुपये का निवेश हुआ है, जो ऐतिहासिक है। इसी प्रकार जनपद बागपत में 800 करोड़ का निवेश उल्लेखनीय उपलब्धि है। इनके अलावा जनपद में बाराबंकी में 600 करोड़ रुपये, हापुड़ में 502 करोड़ रुपये, मेरठ में 450 करोड़ रुपये, बुलंदशहर में 422.70 करोड़, कानपुर देहात में 410 करोड़ तथा शाहजहांपुर में 300 करोड़ का निवेश किया जा रहा है। धर्मपाल सिंह ने कहा कि प्रदेश के यशस्वी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी के कुशल नेतृत्व में प्रदेश की कानून व्यवस्था सुदृढ़ हुई, जिससे निवेशकों का विश्वास बढ़ा। इसी का परिणाम है कि आज उत्तर प्रदेश में बड़ी सख्या में निवेश हो रहा है।

प्रदेश को 1 ट्रिलियन डॉलर इकोनामी बनाये जाने एवं आत्मनिर्भर भारत की परिकल्पना को साकार करने में जीबीसी का महत्पूर्ण योगदान है। उन्होंने लक्ष्य से अधिक निवेश प्राप्त करने के लिए विभाग के अधिकारियों को प्रसंशा की और उन्हें प्रोत्साहित किया। इस अवसर पर पशुधन एवं दुग्ध विकास विभाग के अपर मुख्य सचिव, डा रजनीश दुबे ने कहा कि पशुधन मंत्री जी के मार्गदर्शन में दुग्ध उत्पादन के साथ-साथ पशुपालन के क्षेत्र में विभिन्न कल्याणकारी कार्यक्रम क्रियान्वित किये जा रहे हैं, जिससे किसानों एवं पशुपालकों की आय बढ़ रही है। प्रदेश में पशुधन एवं डेयरी क्षेत्र में अपार नई संभावनाएं है, जिससे निवेशक आकर्षित हो रहे है। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश दुग्ध नीति-2022 के तहत निवेशकों के लिए महत्वपूर्ण प्राविधान किये गये हैं, जिससे डेयरी सेक्टर में अधिकाधिक लाभ सुनिश्चित किया जाना संभव हो रहा है और उसमें निहित व्यवसायिक लाभों की जानकारी किसानों और पशुलपालकों को भी मिल रही है। बैठक में पशुधन विभाग के विशेष सचिव, देवेन्द्र पाण्डेय, विशेष सचिव, अमर नाथ उपाध्याय, विशेष सचिव, राम सहाय यादव, दुग्ध आयुक्त शशिभूषण लाल सुशील, पीसीडीएफ के प्रबंध निदेशक, आनंद कुमार, निदेशक पशुपालन सहित शासन के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
संरक्षा जागरूकता अभियान के तहत संरक्षा सलाहकारों द्वारा बच्चों को दिया गया संरक्षा ज्ञान
लखनऊ। पूर्वोत्तर रेलवे लखनऊ मण्डल में संरक्षा के प्रति जागरुक करने के उद्देश्य के लिए मण्डल रेल प्रबंधक आदित्य कुमार के मार्गदर्शन एवं वरिष्ठ मण्डल संरक्षा अधिकारी डा शिल्पी कन्नौजिया के निर्देशन में मंगलवार को लखनऊ-सीतापुर रेल खण्ड के मध्य बक्शी का तालाब स्टेशन के निकट रेलवे ट्रैक के किनारे स्थित उच्च प्राथमिक विद्यालय सरैया (कक्षा 1-8 कंपोजिट) में संरक्षा जागरूकता अभियान के तहत संरक्षा सलाहकारों द्वारा बच्चों को संरक्षा ज्ञान दिया गया।

संरक्षा ज्ञान के तहत बच्चों को अनाधिकृत स्थानों से रेलवे ट्रैक पार न करने एवं समपार अथवा उपरिगामी सेतु से ट्रैक पार करने हेतु जागरुक किया गया। इसके साथ ही गेटमैन पर अनाधिकृत दबाव नहीं डालने, क्षतिग्रस्त रेलवे फाटको पर सावधानी बरतने, रेलवे ट्रैक व विद्युत पोल से सुरक्षित दूरी बनाए रखने तथा लाइन किनारे मवेशियों को न आने देने के संबंध में संरक्षा जानकारी प्रदान की गयी। इस अवसर पर विद्यालय परिसर में 350 संरक्षा जागरुकता संबंधित पोस्टर एवं पंपलेट का वितरण भी किया गया।

बाबासाहेब भीमराव अम्बेडकर विश्वविद्यालय के सांख्यिकी विभाग के भूपेन्द्र मीना ने उत्तीर्ण की सीएसआईआर- यूजीसी नेट की परीक्षा

लखनऊ। बाबासाहेब भीमराव अम्बेडकर विश्वविद्यालय के सांख्यिकी विभाग के छात्र भूपेंद्र मीना ने सीएसआईआर - यूजीसी नेट ( गणितीय विज्ञान ) की परीक्षा उत्तीर्ण की। इस अवसर पर विश्वविद्यालय के कुलपति आचार्य संजय सिंह ने छात्र को शुभकामनाएं दी। इसके अतिरिक्त विभाग के शिक्षकों ने भी छात्र को उसकी इस उपलब्धि पर बधाई दी और इसे विश्वविद्यालय के लिए गौरव का विषय बताया।
उप्र राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के अर्धदिवसीय कार्यशाला का हुआ आयोजन
लखनऊ। उत्तर प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण द्वारा यूनिसेफ उप्र भारतीय जन स्वास्थ्य संस्थान, गाँधी नगर गुजरात के तकनीकी सहयोग से “Inter-Department Capacity Building and Sensitization Workshop on Preparedness of Uttar Pradesh State Heat Action Plan-2024” विषय पर प्रदेश के विभिन्न विभागों से आये वरिष्ठ अधिकारियों के साथ आयोजित अर्द्धदिवसीय कार्यशाला का आयोजन प्राधिकरण के सभागार में माननीय उपाध्यक्ष महोदय लेफ्टिनेंट जनरल योगेन्द्र डिमरी पीवीएसएम एवीएसएम वीएसएम (सेवानिवृत्त) की अध्यक्षता में किया गया।

उक्त प्रशिक्षण में प्रदेश के विभिन्न विभागों जैसे-गृह विभाग, माध्यमिक शिक्षा विभाग, स्वास्थ्य, कृषि विभाग, अग्निशमन एवं आपातकालीन विभाग, पंचायती राज विभाग, राज्य आपदा मोचक बल, ऊर्जा विभाग, ग्राम्य विकास विभाग, स्थानीय निकाय निदेशालय, रेडियो पुलिस, पूर्वोत्तर रेलवे, पशुपालन, पंचायती राज एवं यूनिसेफ लखनऊ से कुल 30 प्रतिभागियों ने प्रतिभाग किया। अपर मुख्य कार्यपालक अधिकारी, राम केवल(आईएएस) ने समस्त प्रतिभागियों का स्वागत करते हुये प्रदेश सरकार द्वारा राज्य में आपदा न्यूनीकरण के लिए किये जा रहे विभिन्न परियोजनाओं जैसे; डॉप्लर राडार, ऑटोमैटिक वेदर स्टेशन, ऑटोमैटिक रेनगेज, अर्ली वार्निंग सिस्टम और नदी किनारे सेंसर एवं पब्लिक एड्रेस सिस्टम के बारे में सभी विभागों से आये प्रतिभागियों को अवगत कराया।

प्राधिकरण की तरफ से परियोजना निदेशक (सूखा प्रबंधन) डा कनीज फातिमा द्वारा हीट वेव से बचाव हेतु प्रदेश स्तर पर किये गए कार्यों के बारे में बताया जैसे-हीट एक्शन प्लान एवं जनपद स्तर पर क्रियान्वयन तथा सभी जनपदों द्वारा तैयार किये गये एक्शन टेकेन रिपोर्ट के समबन्ध में सभी से चर्चा किया। हीट वेव(लू) कार्य योजना बनाने एवं जन-स्वास्थ्य जागरूकता के संबंध में डॉ महावीर गोलेच्छा, आईआईपीएच, गांधीनगर ने हीट वेव प्रबंधन तथा विभिन्न विभागों की जिम्मेदारियों के बारे में बताया एवं बढ़ते हुये तापमान का अर्थव्यवस्था पर होने वाले दुष्प्रभाव एवं न्यूनीकरण पर विस्तृत चर्चा की। मौसम विभाग से डॉ मो दानिश, वैज्ञानिक.सी ने हीट वेव पूर्वानुमान एवं पूर्व चेतावनी के बारे में बताया साथ ही इन्होनेे बताया कि मौसम विभाग के सभी चेतावनी आम जनता के लिए मौसम विभाग की वेबसाइट पर भी उपलब्ध है। कार्यशाला के अंत में हीट वेव एक्शन प्लान-2024 सभी प्रतिभागियों को वितरित किया गया। माननीय उपाध्यक्ष महोदय लेफ्टिनेंट जनरल योगेन्द्र डिमरी, पीवीएसशएम, एवीएसएम, वीएसएम, (सेवानिवृत्त) ने समस्त अधिकारियों को सम्बोधित करते हुये कहा कि जलवायु परिवर्तन से उत्पन्न हीट वेव की समस्या को सभी विभागों को समझना होगा, क्यूंकि इसका सीधा असर संवेदनशील समुदाय के कार्यों एवं स्वास्थ्य पर पड़ता है। कार्यशाला में आये सभी विभागों को अपने विभाग की हीट वेव योजना तैयार कर क्रियान्वयन कराने और हीट वेव न्यूनीकरण हेतु व्यापक प्रचार-प्रसार करने के सुझाव दिये।

इस वर्ष 2024 में गर्मीं के माह में जनरल इलेक्शन भी अपेक्षित है इसलिए सभी विभागों को मा0 मुख्यमंत्री जी के विजन ^^Zero Loss of life" को साकार करने हेतु हीट वेव के दृष्टिगत उचित कार्यवाही करने की आवश्यकता है। प्रशिक्षण में उत्तर प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की तरफ से अपर मुख्य कार्यपालक अधिकारी, राम केवल (आईएएस), परियोजना निदेशक (सूखा प्रबंधन) डा कनीज फातिमा, प्रोजेक्ट एक्सपर्ट (एग्रीकल्चर) प्रियंका द्विवेदी एवं समस्त परियोजना एक्सपर्ट उपस्थित रहे। कार्यक्रम का संचालन प्रवीन किशोर, प्रोजेक्ट कोऑर्डिनेटर (ट्रेनिंग) द्वारा किया गया।
इग्नू का 37वां दीक्षान्त समारोह सम्पन्न
लखनऊ। इन्दिरा गाँधी राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय का सैतीवां दीक्षान्त समारोह मंगलवार को सम्पन्न हुआ। मुख्य समारोह इग्नू मुख्यालय मैदानगढ़ी, नई दिल्ली में आयोजित हुआ, जहाँ जगदीप धनखड़, उपराट्रपति मुख्य अतिथि थे और उन्होनें दीक्षान्त भाषण दिया।

इसी तारतम्य में 39 क्षेत्रीय केन्द्रों पर साथ-साथ दीक्षान्त समारोह आयोजित किया गया, जहाँ पर परास्नातक एवं स्नातक स्तर के व्यवसायिक पाठ्यक्रमों के विद्यार्थियों को व्यक्तिगत रूप से उपाधि प्रदान की गयी। लखनऊ में यह कार्यक्रम इग्नू क्षेत्रीय केन्द्र, लखनऊ के सभागार में आयोजित किया गया। जहाँ पर 1169 अर्ह अभ्यर्थियों में से 344 विद्यार्थियों को व्यक्तिगत रूप से उपाधि प्रदान की गयी। क्षेत्रीय केन्द्र के समारोह में प्रो सीमा सिंह, कुलपति, उत्तर प्रदेा रार्जाि टंडन मुक्त विवविद्यालय, प्रयागराज विशिष्ट अतिथि थीं, जिन्होनें इग्नू क्षेत्रीय केन्द्र, लखनऊ अर्ह अभ्यर्थियों को डिग्री प्रदान की।

डॉ मनोरमा सिंह, वरिष्ठ क्षेत्रीय निदेशक ने अपने स्वागत भाषण में मुक्त एवम् दूरस्थ शिक्षा के महत्व पर प्रकाा डालते हुए इन्दिरा गाँधी राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय के द्वारा किये जा रहे इस क्षेत्र में विकास के बारे में विस्तार से चर्चा की। डॉ सिंह ने विगत वर्ष में किए गये, इग्नू क्षेत्रीय केन्द्र लखनऊ के कार्यों का विस्तार से वर्णन किया। उन्होने कहा कि इन प्रयासों के माध्यम से विश्वविद्यालय उन लोगों का उच्च ािक्षा सेजोड़ने का प्रयास कर रहा है, जो किसी कारणवा उच्च ािक्षा प्राप्त करने से वंचित रहे हैं। उन्होंने बताया कि शिक्षार्थियों को क्षेत्रीय भाषाओं में शिक्षित करने के लिए विश्वविद्यालय द्वारा स्वयंप्रभा एवं ज्ञानदर्शन टीवी चैनलों के माध्यम से परामर्श कक्षायें आयोजित की जा रही हैं, जिसके तहत इग्नू क्षेत्रीय केन्द्र, लखनऊ द्वारा हिन्दी भाषा में इन परामर्श कक्षाओं का संचालन किया जाता है, साथ ही इग्नू क्षेत्रीय केन्द्र, लखनऊ को ई-विद्या भारती प्रोजेक्ट के तहत अफ्रीका के विद्यार्थियों को ग्रामीण विकास की शिक्षा प्रदान की जा रही है। उन्होने विश्वविद्यालय द्वारा उच्च ािक्षा घर-घर पहुंचाने के लिए विश्वविद्यालय द्वारा भविष्य के लिए बनाई जा रही रणनीति के बारे में भी चर्चा की। उन्होंने बताया कि अनुसूचित जाति-जनजाति के विद्यार्थियों को उच्च ािक्षा से जोड़ने के लिए दलित चैंबर ऑफ कॉमर्स एण्ड इंडर्स्टीज़ का सहयोग लिया जा रहा है।

विद्यार्थियों को स्व-रोज़गार से जोड़ने के लिए खादी विलेज इंडस्ट्रीज़ कमीान, भारत सरकार एवम् अन्य संस्थानों की मदद से जागरूकता कार्याालाओं का आयोजन किया जा रहा है। डॉ कीर्ति विक्रम सिंह, सहायक क्षेत्रीय निदेशक ने विगत वर्षाें में क्षेत्रीय केन्द्र द्वारा किये गये नवाचारों एवं समाज के सुविधाहीन वर्गों के शैक्षणिक उत्थान हेतु किये गये प्रयासों पर प्रकाश डाला। उन्होनें बताया कि पिछले अकादमिक सत्र में क्षेत्रीय केन्द द्वारा मलिन बस्ती में निवास कर रहें लोगों, दिव्यांगजनों, स्वंयसहायता समूह की महिलाएं, ग्रामीण क्षेत्रों, थारू जनजाति के व्यक्तियों, चिकन उद्योग से जुड़ी महिलाओं को शिक्षा प्रदान करने एवं कौशल उन्नयन हेतु कार्य किया गया है। साथ-ही-साथ कारागार के बन्दियों को कौशलपरक शिक्षा देने के लिए भी इग्नू प्रयासरत् है। समारोह मे प्रो0 सीमा सिंह, कुलपति, उत्तर प्रदेा रार्जाि टंडन मुक्त विवविद्यालय, प्रयागराज ने अपने दीक्षान्त भाषण में उपाधि प्राप्त विद्यार्थियों को बधाई देते हुए कहा कि उपाधि प्राप्त करने के पश्चात् विद्यार्थियों के पास स्व-रोज़गार, नौकरियों एवं स्टार्टअप उद्यम के अनेक अवसर प्राप्त होंगे परन्तु साथ साथ नई चुनौतियां तथा सामाजिक एवं आर्थिक जटिलतायें भी आयेंगी जिनका समाधान विक्षार्थियों को अपने अर्जित ज्ञान तथा कौशल के आधार पर करना होगा। उन्होनें अपने संदेश में कहा कि सभी उपाधि प्राप्त युवा छात्रों को अपने अर्जित ज्ञान और अपने कौशल के आधार पर अपनी क्षमताओं का प्रयोग समाज एवं राष्ट्र के उत्थान हेतु करना चाहिए। उन्होनें इग्नू द्वारा सुविधाहीन, शिक्षा से वंचित लोगों को शिक्षा द्वारा विकास की मुख्य धारा से जोड़ने के लिए विश्वविद्यालय द्वारा किये जा रहे कार्यों की सराहना की। उन्होनें कहा कि विश्वविद्यालय द्वारा राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत विद्यार्थियों को क्षेत्रीय भाषा में शिक्षित करने का जो प्रयास किया जा रहा है वह सराहनीय है। उन्होनें कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी 2020) में विश्व स्तरीय उच्च शिक्षा पारिस्थितिकी तंत्र के विकास के लिए आवश्यक पांच मूलभूत स्तंभों को सूचीबद्ध किया गया है। ये हैं छात्र केन्द्रितता, अनुसंधान और नवाचार, संकाय, अन्तर्राष्ट्रीयकरण और डिजिटल शिक्षा है। इग्नू सभी को शिक्षा प्रदान करने के लिए इन रणनीतिक स्तंभों के आधार पर प्रशंसनीय कार्य कर रहा है। उन्होनें उपाधि धारकों को उद्यमशील बनने के लिए प्रोत्साहित किया एवम् अपनी सांस्कृतिक विरासत को आत्मसात करने के लिए प्रेरित किया। कार्यक्रम में सम्मानित अतिथि के रूप में उपस्थित श्री घनश्याम शाही, क्षेत्रीय संगठन मंत्री (पूर्वी उत्तर प्रदेश), अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने अपने उद्बोधन में इग्नू द्वारा भारतीय ज्ञान परंपरा के प्रचार-प्रसार के लिए किए जा रहे प्रयासो की सराहना की। उन्होेंने कहा कि इग्नू द्वारा विगत र्वाों में संचालित वैदिक अध्ययन, हिंदू अध्ययन, संस्कृत, ज्योतिा में स्नातकोत्तर आदि पाठ्यक्रमों का संचालन किया जा रहा है जोकि एक सराहनीय पहल है। इससे विद्यार्थियों में सांस्कृतिक राट्रवाद की भावना जागृत होगी और उनके व्यक्तित्व का संपूर्ण विकास होगा। उन्होनें विद्यार्थियों को स्वामी विवेकानन्द के आदर्शाें पर चलने के लिए प्रेरित किया और इग्नू द्वारा भारत-नेपाल सीमा पर युवाओं के शैक्षिक उन्नयन हेतु किये जा रहे कार्यों की सराहना की। दीक्षांत समारोह में मास्टर्स इन पॉलिटिकल साइंस (एमपीएस) पाठ्यक्रम के छात्र अर्जुन चौधरी को स्वर्णपदक से सम्मानित किया गया। समारोह के दौरान विभिन्न अध्ययन केन्द्रों के समन्वयकों को विद्यार्थी सहायता के क्षेत्र में किये गये उल्लेखनीय कार्यों के लिए सम्मानित किया गया। इनमें प्रमुख रूप से प्रो0 कमल कुमार सक्सेना, प्रो अनुराधा तिवारी, डॉ वीके तिवारी, डॉ0 शैलजा गुप्ता का सम्मान हुआ।

इस अवसर पर इग्नू अध्ययन केन्द्र-27162, डॉ0 राम मनोहर लोहिया राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालय, लखनऊ की वेबसाईट का लोकापर्ण हुआ और इसको निर्मित करने के लिए अध्ययन केन्द्र के समन्वयक प्रो0 मनीा सिंह एवं सह-समन्वयक डॉ0 मनीा बाजपेई का सम्मान किया गया। डॉ0 रीना कुमारी, सहायक क्षेत्रीय निदेशक द्वारा इग्नू पाठ्यक्रमों एवं विद्यार्थी सहायता सेवा: सोशल मीडिया एक सशक्त माध्यम पर एक रिपोर्ट प्रस्तुत की। कार्यक्रम में इग्नू क्षेत्रीय केन्द्र के सभी अधिकारी एवं कर्मचारी, इग्नू अध्ययन केन्द्र के समन्वयक तथा कार्यक्रम प्रभारी एवं अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे तथा अन्त में डॉ0 अनिल कुमार मिश्रा, अतिरिक्त निदेशक ने सभी छात्रों, अतिथियों एवं मीडियाकर्मियों को धन्यवाद ज्ञापित किया। इस कार्यक्रम में डॉ0 अनामिका सिन्हा, सहायक क्षेत्रीय निदेशक ने कार्यक्रम का संचालन किया।
151 युवाओं को मिला रोजगार का अवसर
लखनऊ। उत्तर प्रदेश कौशल विकास मिशन, लखनऊ, राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान, अलीगंज, लखनऊ एवं क्षेत्रीय सेवायोजन कार्यालय, लखनऊ के संयुक्त तत्वाधान में डी.डी.यू.जी.के.वाई. योजनान्तर्गत, अमेठी इण्टर कालेज ब्लाक- गोसाईगंज, लखनऊ, में वृहद रोजगार मेले का आयोजन किया गया।
जिसका शुभारम्भ मो वहीद, चेयरमैन प्रतिनिधि, ब्लाक- गोसाईगंज द्वारा किया गया। प्रधानाचार्य राजकीय आईटीआई लखनऊ राज कुमार यादव ने बताया कि रोजगार मेले में 9 कम्पनियों ने प्रतिभाग किया। 448 अभ्यर्थी में से 151 अभ्यर्थियों को रोजगार का अवसर प्राप्त हुआ।
160 युवाओं को मिला रोजगार के अवसर

लखनऊ। उत्तर प्रदेश कौशल विकास मिशन, लखनऊ, राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान, अलीगंज, लखनऊ एवं क्षेत्रीय सेवायोजन कार्यालय, लखनऊ के संयुक्त तत्वाधान में डी.डी.यू.जी.के.वाई. योजनान्तर्गत, राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान मोहनलालगंज, ब्लाक-मोहनलालगंज लखनऊ, में वृहद रोजगार मेले का शुभारम्भ ओम प्रकाश शुक्ला, ब्लाक प्रमुख मोहनलालगंज, लखनऊ द्वारा किया गया। मेले में 11 कम्पनियों ने प्रतिभाग किया जिसमें 530 अभ्यर्थी सम्मिलित हुए। रोजगार मेले में 160 अभ्यर्थियों को रोजगार का अवसर प्राप्त हुआ। ब्लाक प्रमुख ने मेले में चयनित 10 अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र वितरण किया गया।
शहर की साफ सफाई उच्च कोटि की होनी चाहिये व सड़कों पर नगर निगम की जंग लगी गाड़ियां एक भी नहीं दिखनी चाहिएः मंडलायुक्त

लखनऊ। मंडलायुक्त डॉ रोशन जैकब की अध्यक्षता में ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी की दृष्टिगत शहर में किये जा रहे तैयारियों व सजा-सज्जा कार्यों के संबंध में महत्वपूर्ण बैठक का आयोजन लखनऊ विकास प्राधिकरण के मसऊद हाल सभागार में आहूत की गई। इस अवसर पर नगर आयुक्त इंद्रजीत सिंह, (उपाध्यक्ष) लखनऊ विकास प्राधिकरण इंद्रमणि त्रिपाठी सहित संबंधित विभागीय अधिकारीगण उपस्थित रहे। बैठक के दौरान मंडलायुक्त ने संबंधित अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि पेड़ों पर फ़साड़ लाइट अच्छी संख्या में लगाये व स्पालर लाइट संबंधित स्थानो पर टाइट बंधा रहना चाहिए। शहर को लाइटिंग की एकरूपता के साथ, साज-सच्चा का कार्य कराया जाना सुनिश्चित किया जाए। जिससे शहर की सुंदरता निखर कर सामने आए। उन्होंने कहा कि स्मारक समिति के पत्थरों की कटर पॉलिशग व हॉर्टिकल्चर कार्य अच्छे से कराया जाए। जी-20 रोड पर टूटे हुए रिटर्निंग वाल तत्काल सही कर लिया जाए। संबंधित सड़कों की रेकी एक बार पुनः संबंधित संस्थाओ द्वारा कराया जाना सुनिश्चित किया जाए। मंडलायुक्त डॉ रोशन जैकब ने नगर निगम के संबंधित अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि हजरतगंज और हेरिटेज एरिया के संपूर्ण क्षेत्र में अवैध होल्डिंग्स/अवैध अतिक्रमण तत्काल हटाया जाये। उन्होंने कहा कि संबंधित अधिकारी फील्ड पर उतरकर कर कार्य करे। जो भी कार्य किये जा रहे है, वो कार्य गुणवत्ता पूर्वक व स्थाई रूप से होने चाहिये। लोहिया चौराहा पुल व आईजीपी के अपोजिट साइड, वॉल पेंटिंग अच्छी से होनी चाहिए। उक्त के पश्चात मंडलायुक्त ने नगर निगम के अधिकारियों सख्त निर्देश दिया कि शहर की साफ सफाई व्यवस्था उच्च कोटि की होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि समस्त सफाई कर्मचारी अपने ड्रेस कोड में सड़कों पर दिखने चाहिए। सड़कों पर नगर निगम की जंग लगी गाड़ियां एक भी नहीं देखनी चाहिए साथ ही पेड़ों की कटाई-छटाई व फुटपाथ की अच्छे से धुलाई व साफ-सफाई भी कराते रहे। स्मार्ट सिटी द्वारा लगवाई गई सभी फ़साड लाइट एकरूपता के साथ जलती मिलनी चाहिए।
प्रदेश के पर्यटन स्थलों का विकास सरकार की प्राथमिकताः जयवीर सिंह

लखनऊ। लखनऊ के आशियाना स्थित महाराजा बिजली पासी किला विश्वस्तरीय स्थल के रूप में विकसित किया जाएगा। इसके लिए प्रदेश सरकार ने लगभग 19 करोड़ रुपये स्वीकृत किए हैं। इसमें लाइट एंड साउंड शो, बच्चों के लिए खेलने के स्थल, पाथवे समेत कई और कार्य कराए जाएंगे।

यह जानकारी पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने दी। उन्होंने कहा कि प्रदेश के पर्यटन स्थलों का विकास सरकार की प्राथमिकता में है। इसी क्रम में महाराजा बिजली पासी किले का विकास कराने की तैयारी है। पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने बताया कि महाराजा बिजली पासी लोकप्रिय राजा थे। उनके द्वारा किले का निर्माण किया गया था। वर्तमान समय में यह महत्वपूर्ण स्थल है। यहां सभी आयुवर्ग के पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए सुविधाएं विकसित की जाएंगी ताकि यहां भ्रमण करने लिए बच्चे, युवा, वृद्ध महिला-पुरुष भ्रमण में रुचि दिखाएं। इसके लिए सौंदर्यीकरण कराया जाएगा। शाम के समय पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए लाइट एंड साउंड कार्यक्रम होगा, जिसमें महाराजा बिजली पासी और उनके शासन का वर्णन किया जाएगा। योजना के तहत बच्चों के लिए क्रीड़ा स्थल भी विकसित किया जाएगा, जहां बच्चों के खेलने के लिए विभिन्न झूले उपलब्ध होंगे। इसके अलावा पाथवे, कैंटीन, लैंडस्केप, शौचालय समेत विभिन्न कार्य किए जाएंगे।

पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने बताया कि प्रदेश में पर्यटन तेज गति बढ़ रहा है। अभी उत्तर प्रदेश घरेलू पर्यटन के मामले में पहले स्थान पर है। हमारा प्रयास है कि विश्व से आने वाले पर्यटकों के मामले में भी यह उपलब्धि हासिल करें। इसके लिए पर्यटन स्थलों और पर्यटक सुविधाओं का निरंतर विकास किया जा रहा है। महाराजा बिजली पासी के किले का विकास होने के बाद पर्यटकों के पास राजधानी लखनऊ में भ्रमण और अच्छे विकल्प होंगे।