फारूक अब्दुल्ला का आरोप: यूपी सरकार मुगलों का इतिहास मिटाने के लिए नाम बदल रही है

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नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने गुरुवार को उत्तर प्रदेश सरकार पर मुगलों के इतिहास को मिटाने का आरोप लगाया। पीटीआई के अनुसार अब्दुल्ला ने कहा, "वे मुगलों के इतिहास को मिटाना चाहते हैं, ऐसा नहीं होगा। वे (मुगल) सैकड़ों वर्षों तक यहां रहे और यहीं दफन भी हुए।" नेशनल कॉन्फ्रेंस के प्रमुख मुगल बादशाह औरंगजेब पर समाजवादी पार्टी के विधायक की टिप्पणी और शहरों और ऐतिहासिक इमारतों के नाम बदलने के उत्तर प्रदेश सरकार के फैसले पर उठे विवाद पर पूछे गए सवाल का जवाब दे रहे थे। 

महाराष्ट्र के समाजवादी पार्टी के विधायक अबू आजमी द्वारा मुगल बादशाह औरंगजेब की प्रशंसा करने के बाद राजनीतिक तूफान खड़ा हो गया, जिस पर सत्तारूढ़ भाजपा ने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की। आजमी ने औरंगजेब को "अच्छा प्रशासक" कहा था और दावा किया था कि उनके शासन में भारत ने खूब तरक्की की। संसदीय कार्य मंत्री चंद्रकांत पाटिल द्वारा प्रस्ताव पेश किए जाने के बाद उन्हें महाराष्ट्र विधानसभा से निलंबित कर दिया गया। 

उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विवाद पर चुप्पी साधने के लिए समाजवादी पार्टी की आलोचना की थी और आजमी का नाम लिए बिना मांग की थी कि उन्हें पार्टी से निकाल दिया जाना चाहिए। योगी आदित्यनाथ ने कहा था, "उन्हें यूपी भेजो, हम जानते हैं कि ऐसे लोगों से कैसे निपटना है। इसमें हमें ज्यादा समय नहीं लगेगा।" आदित्यनाथ ने सपा पर भारत की सांस्कृतिक विरासत का सम्मान न करने और इसके वैचारिक संस्थापक डॉ. राम मनोहर लोहिया के सिद्धांतों से भटकने का आरोप लगाया। "लोहिया भगवान राम, भगवान कृष्ण और भगवान शिव को भारत की एकता के स्तंभ मानते थे। लेकिन आज सपा औरंगजेब जैसे शासक का महिमामंडन कर रही है।" 

ऐतिहासिक विवरणों का हवाला देते हुए सीएम ने बताया कि औरंगजेब ने अपने पिता शाहजहां को आगरा किले में कैद कर दिया था और उन्हें पानी तक नहीं दिया था। उन्होंने सपा सदस्यों को पटना की लाइब्रेरी में जाकर शाहजहां की जीवनी पढ़ने की सलाह दी थी, जिसमें उनके अनुसार मुगल ने एक बार औरंगजेब से कहा था: “एक हिंदू तुमसे बेहतर है, क्योंकि वह जीवित रहते हुए अपने माता-पिता की सेवा करता है और मरने के बाद उनके सम्मान में अनुष्ठान करता है।”

राहुल गांधी ने सरकार को लिखा पत्र, उठाया एनसीएससी-एनसीबीसी में खाली पदों का मुद्दा


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विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग (एनसीएससी) और राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग (एनसीबीसी) में रिक्त पदों का मुद्दा उठाया है। इसको लेकर लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने केंद्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री वीरेंद्र कुमार को एक पत्र लिखा है। उन्होंने सरकार से अपील की कि इन संस्थाओं को उनके सांविधानिक कार्यों को पूरा करन के लिए जल्द से जल्द इन रिक्तियों को भरा जाए। 

इस पत्र में राहुल गांधी ने कहा है कि पूरे देश में हजारों दलित-पिछड़े न्याय की लड़ाई लड़ रहे हैं। हर जगह जातिगत जनगणना की मांग गूंज रही है। ऐसे वक्त में भाजपा सरकार द्वारा जानबूझकर सामाजिक न्याय सुनिश्चित करने वाली संवैधानिक संस्थाओं में अहम पदों को खाली रखना उनकी दलित-पिछड़ा विरोधी मानसिकता को दिखाता है। मैं सरकार से आग्रह करता हूं कि वो एनसीएससी और एनसीबीसी में रिक्तियों को जल्द से जल्द भरकर संस्थानों को उनके संवैधानिक जनादेश को पूरा करने के लिए सशक्त बनाए।

कांग्रेस नेता ने एक मार्च को कुमार को लिखे पत्र में बताया कि 3 मार्च और 2024 को एनसीएससी के सातवें अध्यक्ष और दो सदस्यों की नियुक्ति की गई, लेकिन उपाध्यक्ष का पद करीब एक साल से खाली पड़ी है। उन्होंने कहा कि दलित भाई-बहनों के अधिकारों की रक्षा करने में एनसीएससी की अहम भूमिका है और हजारों लोग न्याय के लिए इस आयोग के पास जाते हैं। उन्होंने कहा, आयोग ने दलितों के सामाजिक और आर्थिक विकास में बाधा डालने वाले मुद्दों को सक्रियता से उठाया है, जिनमें सार्वजनिक रोजगार, शिक्षा तक पहुंच और अत्याचारों की रोकथाम शामिल हैं। 

राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि इस आयोग को कमजोर करने की जानबूझकर कोशिश सरकार के दलित विरोधी मानसिकता को उजागर करती है। राहुल गांधी ने अपने पत्र में एनसीबीसी उपाध्यक्ष के पद के बारे में भी चिंता व्यक्त की, जो तीन साल से खाली पड़ा है। उन्होंने कहा कि एनसीबीसी वर्तमान में केवल अध्यक्ष और एक सदस्य के साथ कार्य कर रहा है। 1993 में अपनी स्थापना के बाद से, एनसीबीसी में हमेशा अध्यक्ष और उपाध्यक्ष/सदस्य सचिव के अलावा कम से कम तीन सदस्य होते थे। इस महत्वपूर्ण समय में जब देशभर में जाति जनगणना की मांग तेज हो रही है, इस पद का रिक्त रहना अत्यंत चौंकाने वाला है।

एमसीडी के 12000 संविदा कर्मचारी होंगे स्थायी, जानें क्या है दिल्ली हारने के बाद आप का प्लान

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दिल्ली विधानसभा चुनाव में करारी हार के बाद आम आदमी पार्टी (आप) चुप नहीं बैठी है। विधानसभा चुनाव में शिकस्त के बाद आप दिल्ली नगर निगम यानी एमसीडी के जरिये बीजेपी सरकार को ताकत दिखान की कोशिश में है। पूर्व मुख्यमंत्री और नेता प्रतिपक्ष बनाई गईं आतिशी के ताजा बयान से तो ऐसे ही संकेत मिल रहे हैं। दरअसल, आतिशी ने रविवार को घोषणा की कि दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) मंगलवार को होने वाली अपनी सदन की बैठक में 12,000 संविदा कर्मचारियों को नियमित करने की तैयारी में है।

आम आदमी पार्टी की नेता आतिशी ने रविवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान इस फैसले की घोषणा करते हुए कहा कि ‘आप’ के नेतृत्व वाली एमसीडी अस्थायी कर्मचारियों को नियमित करने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा, पिछले दो वर्षों में हमने 4,500 (संविदा) कर्मचारियों को स्थायी किया है। अब 25 फरवरी को एमसीडी सदन की बैठक में हम सफाई कर्मचारियों, कनिष्ठ अभियंताओं, वरिष्ठ अभियंताओं, माली और अन्य संविदा कर्मचारियों सहित सभी विभागों में 12,000 से अधिक कर्मचारियों को नियमित करने जा रहे हैं।

आतिशी ने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर इस बारे में जानकारी देते हुए एक पोस्ट किया है। अपनी पोस्ट में आतिशी ने लिखा है, दिल्ली एमसीडी में आप सरकार ने ऐतिहासिक निर्णय लेते हुए सभी विभागों के 12,000 अस्थाई कर्मचारियों को पक्का करने का फैसला किया है। 25 फरवरी को होने वाली एमसीडी सदन की बैठक में इस प्रस्ताव पर मुहर लगेगी। हमने एमसीडी के कच्चे कर्मचारियों से जो वादा किया था, उसे पूरा करने जा रहे हैं। देश के इतिहास में किसी भी सरकार ने इतना बड़ा फैसला नहीं लिया, जो आज अरविंद केजरीवाल जी के मार्गदर्शन में एमसीडी की "आप" सरकार लेने जा रही है।

वहीं आम आदमी पार्टी के प्रमुख अरविंद केजरीवाल ने एक्स पर लिखा, एमसीडी के सभी 12,000 अस्थायी कर्मचारियों को बहुत-बहुत शुभकामनाएं। आम आदमी पार्टी ने अपना वादा निभाते हुए निगम के इन अस्थायी कर्मचारियों को स्थायी करने का ऐतिहासिक फैसला कर लिया है। 25 फरवरी को एमसीडी सदन की बैठक में ये प्रस्ताव पारित होगा।

दिल्ली में विभागों का बंटवारा! सीएम रेखा गुप्ता के पास गृह-वित्त, प्रवेश वर्मा-कपिल मिश्रा को क्या मिला?

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दिल्ली में नई सरकार का गठन हो गया है। मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता और उनके कैबिनेट ने गुरुवार को रामलीला मैदान में शपथ ली। उप राज्यपाल विनय सक्सेना ने मुख्यमंत्री और सभी मंत्रियों को पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई। मुख्यमंत्री समेत कुल सात सदस्यीय नई कैबिनेट में मुख्यमंत्री इकलौती महिला हैं। रेखा गुप्ता की कैबिनेट में प्रवेश वर्मा और कपिल मिश्रा के अलावा राजौरी गार्डन विधानसभा क्षेत्र से मनजिंदर सिंह सिरसा, बवाना से रविंद्र कुमार इंद्राज, जनकपुरी से आशीष सूद और विकासपुरी से पंकज कुमार सिंह शामिल है।

दिल्ली में भाजपा सरकार के शपथ के बाद मंत्रियों के बीच विभागों का बंटवारा कर दिया गया। सूत्रों के मुताबिक, दिल्ली की बीजेपी सरकार में सीएम रेखा गुप्ता ने गृह, वित्त, सेवा, विजिलेंस और प्लानिंग जैसे विभाग अपने पास रखे हैं। वहीं प्रवेश वर्मा को भी शिक्षा, पीडब्ल्यूडी और ट्रांसपोर्ट जैसे अहम मंत्रालय दिए गए हैं। इसके अलावा कपिल मिश्रा को जल, पर्यटन और संस्कृति विभाग सौंपा गया है। हालांकि अभी विभागों के इस बंटवारे की आधिकारिक रूप से पुष्टि नहीं की गई है।

जानें किस मंत्री को मिला क्या विभाग

1. रेखा गुप्ता (मुख्यमंत्री) – गृह, वित्त, सेवाएं, सतर्कता, योजना

2. प्रवेश वर्मा- शिक्षा, लोक निर्माण विभाग, परिवहन

3. मनजिंदर सिंह सिरसा- स्वास्थ्य, शहरी विकास, उद्योग

4. रविन्द्र कुमार इंद्रराज – समाज कल्याण, एससी/एसटी मामले, श्रम

5. कपिल मिश्रा- जल, पर्यटन, संस्कृति

6. आशीष सूद राजस्व, पर्यावरण, खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति

7. पंकज कुमार सिंह- विधि, विधायी कार्य, आवास

From Rugged Roads to India’s World-Class Expressways: Rajveer Singh’s Mega Road Trip Begins April 13, 2025

India’s Luxury Drive: Rajveer Singh’s Mega Road Expedition to Showcase India’s Highways, Culture, and Luxury Travel – Kicking Off on April 13, 2025.

Starting on April 13, 2025, Rajveer will embark on a spectacular 35-day journey covering the legendary Golden Quadrilateral and beyond. This ambitious campaign is already drawing national attention, with Rajveer’s team in discussions with key government bodies, including the Ministry of Tourism, the Ministry of Culture, and the Ministry of Road Transport and Highways, to support and amplify this initiative. Joining him on this drive are Vibha Narshana, CEO of Party and Travels, and Roshan Kamble, a talented cinematographer who will capture the essence of this groundbreaking expedition.

India’s highways have undergone a remarkable transformation, evolving from rugged roads into world-class expressways that now connect the entire nation with speed, safety, and efficiency. These roads are more than just infrastructure; they are the backbone of progress, fueling economic growth, tourism, and cultural exchange. To celebrate this monumental development and position India as a top-tier road-trip destination, Rajveer Singh an award-winning digital creator with 1.7 million followers, is launching India’s Luxury Drive—a grand digital campaign that will showcase the country’s highways, rich heritage, and luxury travel experiences like never before.

India’s Luxury Drive is more than just a road trip; it is a storytelling revolution that will redefine the way the world sees India’s highways and travel potential. With 175+ premium videos, 1000+ Instagram stories, and 50+ YouTube long videos, this drive is set to generate over 100 million digital impressions, making it one of the most high-impact travel campaigns ever.

Rajveer’s journey will highlight not just the speed and convenience of modern Indian highways but also the immersive cultural experiences that lie along these routes. With a portfolio that includes collaborations with top brands like Samsung, Canon, DJI, Thar, Nvidia, and Sahara Star, he will blend luxury, adventure, and heritage into an unforgettable digital experience.

For brands, tourism boards, and industry leaders, India’s Luxury Drive presents a golden opportunity to align with a campaign that will leave a lasting imprint on India's travel and digital landscape. The road to history is being paved—who’s ready to ride along? Instagram handle

विदेश मंत्री एस जयशंकर के अमेरिका दौरे पर राहुल गांधी ने ऐसा क्या कहा, भड़क गया सत्ता पक्ष

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संसद के बजट सत्र में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने चर्चा में हिस्सा लिया। लोकसभा में विपक्ष के नेता ने कई मुद्दों पर सरकार को घेरा। लोकसभा में चर्चा के दौरान कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की शपथ का जिक्र किया और कहा कि पीएम मोदी को शपथ का निमंत्रण मिले इसलिए विदेश मंत्री जयशंकर को अमेरिका भेजा था।

राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि विदेश मंत्री एस जयशंकर को तीन बार अमेरिका भेजा गया ताकि प्रधानमंत्री को वहां आने का न्योता मिल सके। दरअसल, राहुल गांधी ने कहा कि चीन आज एआई, बैट्री, इलेक्ट्रिक कार, ऑप्टिक्स के क्षेत्र में तेजी से बढ़ रहा है, लेकिन हम इसमें पीछे हैं। राष्ट्रपति के अभिभाषण में इस मुद्दे पर बात होनी चाहिए थी। साथ ही हमारे बैंकिंग सेक्टर पर दो या तीन बड़ी कंपनियों का ही प्रभाव नहीं होना चाहिए और छोटी और मध्यम वर्ग की कंपनियों को भी बैंकिंग सेक्टर तक आसान पहुंच होनी चाहिए। अगर ऐसा होता तो हमारे विदेश मंत्री को तीन-चार बार अमेरिका जाकर ये नहीं कहना पड़ता कि हमारे प्रधानमंत्री को आमंत्रित करें।' राहुल गांधी ने कहा कि 'अगर हमने इन क्षेत्रों में काम किया होता तो अमेरिका खुद हमारे प्रधानमंत्री को आमंत्रित करता।

राहुल गांधी के इस बयान पर सत्ता पक्ष ने आपत्ति जताई। केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू जवाब देने के लिए उठे। उन्होंने कहा कि विपक्ष के नेता को बिना किसी सबूत के ऐसे आरोप नहीं लगाने चाहिए। ये दो देशों का मुद्दा है। ये विदेश नीति का मामला है। रिजिजू ने कहा कि वो विपक्ष के नेता हैं। उन्हें जिम्मेदार होना चाहिए। रिजिजू ने कहा कि अगर विपक्ष के नेता के पास भले ही किसी स्रोत से ऐसी जानकारी हो, जो उन्होंने कहा है तो उसे सदन में रखना चाहिए।

राहुल गांधी ने तंज कसते हुए कहा कि मैं आपकी दिमागी शांति भंग करने के लिए माफी मांगता हूं। मैं ये सवाल को उठाने के लिए माफी मांगता हूं। आई एम सॉरी। इसपर रिजिजू ने कहा कि आपने सदन में झूठ बोला है। इसके लिए माफी मांगों। आपको देश के मामले में तो एक होना चाहिए। रिजिजू ने कहा कि विपक्ष के नेता को इस तरह की बयानबाजी नहीं करनी चाहिए। गंभीर विषय पर चर्चा चल रही है।

बता दें कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बीते दिनों अपने शपथ ग्रहण समारोह में चीन के राष्ट्रपति को आमंत्रित किया था, लेकिन भारत से विदेश मंत्री एस जयशंकर, ट्रंप के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल हुए। राहुल गांधी के बयान को इसी से जोड़कर देखा जा रहा है।

लोकसभा में राहुल गांधी ने बेरोजगारी के मुद्दे पर सरकार को घेरा, बोले-मेक इन इंडिया फेल

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लोकसभा में बजट सत्र के तीसरे दिन राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा शुरू हुई है। लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा में भाग लिया।राष्ट्रपति के अभिभाषण पर जवाब देते हुए राहुल गांधी ने कहा कि इसमें नया कुछ नहीं। राष्ट्रपति के अभिभाषण में कुछ भी नया नहीं है। राष्ट्रपति का अभिभाषण वैसा नहीं था, जैसा होना चाहिए था। ये अभिभाषण अलग होना चाहिए। मैं यहां कुछ वैकल्पिक बातें बता रहा हूं और ऐसा अभिभाषण हो सकता था। इस दौरान राहुल गांधी ने मोदी सरकार पर कई हमले किए।

रिलायंस, अडाणी, टाटा सब बढे पर तेज नहीं- राहुल

राहुल ने कहा कि पिछले 60 सालों में सबसे कम इंफ्रास्टक्चर हुआ है, तो इस सवाल का जवाब क्या है, युवाओं को क्या बताएंगे? कोई भी देश दो चीजों पर चलता है कंज्प्शन और प्रोडक्शन, 1990 से सभी सरकारों ने कंज्प्शन पर अच्छा काम किया। रिलायंस, अडाणी, टाटा, महिंद्रा सभी तेजी से बढ़े लेकिन ओवरऑल देश का विकास नहीं हुआ। लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने कहा कि युवाओं के रोजगार के मसले पर सरकारें गंभीर नहीं हैं। उन्होंने कहा कि इस मसले पर पूर्व की यूपीए सरकार हो या फिर मौजूदा पीएम मोदी की सरकार दोनों ने इसका कोई जवाब नहीं दिया।

पीएम मोदी ने मेक इन इंडिया को सफल बनाने का प्रयास नहीं किया-राहुल गांधी

नेता प्रतिपक्ष ने आगे कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी की मेक इन इंडिया योजना अच्छी थी लेकिन, सच्चाई यह है कि यह योजना पूरी तरह विफल साबित हुई है। रोजगार के मसले पर इस सरकार की योजना साफ नहीं है। राहुल गांधी ने कहा कि मैं पीएम नरेंद्र मोदी की आलोचना नहीं करा रहा हूं। मैं नहीं कहूंगा कि प्रधानमंत्री (नरेंद्र मोदी) ने मेक इन इंडिया को सफल बनाने के लिए प्रयास नहीं किया, लेकिन वो इसमें असफल रहे।

भारत में मोबाइल फोन बनते नहीं, असेंबल हो रहे-राहुल गांधी

कांग्रेस सांसद ने कहा कि देश में मैनुफैक्चरिंग सेक्टर में गिरावट आई है। उन्होंने मोबाइल का उदाहरण दिया। उन्होंने कहा कि भारत में मोबाइल फोन बन नहीं रहे हैं। यहां ये असेंबल हो रहे हैं। मोबाइल का हर एक पार्ट चीन से आता है और अपने यहां उसे केवल असेंबल किया जाता है।

दुनिया आज पूरी तरह से बदल रही है

राहुल गांधी ने कहा कि दुनिया आज पूरी तरह से बदल रही है। बदलाव जो हो रहा है कि दुनिया ईवी की तरफ बढ़ रही है, हम पेट्रोल से बैट्री की तरफ जा रहे हैं। सोलर और न्यूक्लियर एनर्जी की तरफ जा रहे हैं। ये बदलाव वॉर फेयर, एजुकेशन समेत हर जगह बदल रहा है। आखिरी बार हमने कंप्यूटर क्रांति देखी थी। कांग्रेस सरकार ने सॉफ्टवेयर डिवेलपमेंट पर ध्यान दिया था। मुझे याद है कि उस समय लोग हंस रहे थे। वाजपेयी ने भी कहा था कि कंप्यूटर का भारत में कोई भविष्य नहीं है।

यूक्रेन में युद्ध लड़ा जा रहा है, ईवी और इंजन से- राहुल गांधी

लोकसभा में राहुल गांधी ने कहा कि यूक्रेन में युद्ध लड़ा जा रहा है, ईवी और इंजन से है। इलेक्ट्रिक मोटर ड्रोन में है, इंजन टैंक में है। देखिए आज यूक्रेन में क्या हो रहा है टैंक का खात्मा हो रहा है लेकिन ड्रोन कमाल कर रहा है। ड्रोन पूरे टैंक को ध्वस्त कर रहा है। ड्रोन इलेक्ट्रिक मोटर है, ये बैट्री है। इलेक्ट्रिक कार और रोबॉट्स भी इलेक्ट्रिक मोटर है। चार तरह की तकनीक पूरी दुनिया को ड्राइव कर रही है, इलेक्ट्रिक मोटर, बैट्री, ऑप्टिकस, एआई।

दुनिया के बदलावों पर सरकार सजग नहीं- राहुल गांधी

राहुल गांधी ने कहा कि दुनिया के बदलावों पर सरकार सजग नहीं है। चीन भारत से 10 साल आगे है, बैट्री, मोटर, ऑप्टिक से। राष्ट्रपति के अभिभाषण में युवाओं के लिए क्या था। जब हम अमेरिका की बात करते हैं तो हम अपने विदेश मंत्री को अपने पीएम को विदेशी मुद्दे पर बुलाने के लिए अमेरिका नहीं भेजते हैं। हम उन्हें ये जाकर नहीं कहते कि हमारे पीएम को बुलाइए। अगर हमारे पास प्रोडक्शन सिस्टम होता तो हम उनको मजबूर करते कि वो आकर हमारे पीएम को बुलाते।

केजरीवाल की केंद्र के सामने उठाया मिडिल क्लास का मुद्दा, रखी ये 7 मांगें

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दिल्ली में 5 फरवरी को विधानसभा चुनाव होने हैं। इस चुनाव में आम आदमी पार्टी तीसरी बार सत्ता वापसी के लिए पूरा जोर लगा रही है। आप ने इस चुनाव में जीत पक्की करने के ले हर एक वर्ग को साधने की कोशिश की है। आम आदमी पार्टी के संयोजक और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने महिलाओं से लेकर बुजुर्गों और युवाओं तक पर दांव खेला है। अब केजरीवाल की नजर मिडिल क्लास पर है। इस बीच बुधवार को आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया और देश के मिडिल क्लास को लेकर कई जरूरी मुद्दों पर बात की। इसके साथ ही केंद्र सरकार से 7 मांगें भी की हैं।

मिडिल क्लास केवल एटीएम बनकर रह गया-केजरीवाल

अरविंद केजरीवाल ने कहा कि कई वादे धर्म और जाति के नाम पर किए जाते हैं। कई वादे समाज के निचले तबके के लिए किए जाते हैं। कई वादे उद्योगपतियों के लिए किए जाते है। कुछ लोग इनके वोट बैंक हैं। एक वर्ग इनके बीच में है जो पिसकर रह गया है। 75 सालों में एक के बाद एक दूसरी पार्टी सत्ता में आई। हर सरकार ने मिडिल क्लास को दबाकर रखा है। ये मिडिल क्लास के लिए करते कुछ नहीं है लेकिन टैक्स का हथियार चला देती है। मिडिल क्लास सरकार का एटीएम बनकर रह गया है।

मिडिल क्लास की आवाज उठाएगी आप-केजरीवाल

आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने कहा कि मिडिल क्लास पर टैक्स का बोझ सबसे ज्यादा है। मिडिल क्लास को हमारे देश में सबसे ज्यादा परेशान किया जाता है। मिडिल क्लास वालों की 50 प्रतिशत से ज्यादा आमदनी टैक्स देने में चली जाती है। केजरीवाल ने कहा कि आम आदमी पार्टी सड़क से लेकर संसद तक मिडिल क्लास की आवाज उठाएगी। आने वाले बजट में आम आदमी पार्टी के सांसद मिडिल क्लास के मुद्दों को ही संसद में उठाएंगे।

मिडिल क्लास के लिए केजरीवाल की 7 मांगे

• शिक्षा का बजट 2 परसेंट से बढ़ाकर 10 प्रतिशत किया जाए।

• पूरे देश में प्राइवेट स्कूलों की फीस पर लगाम लगाई जाए, उच्च शिक्षा के लिए सब्सिडी दी जाए।

• स्वास्थ्य क्षेत्र का बजट भी बढ़ाया जाए और हेल्थ इंश्योरेंस से टैक्स भी कम किया जाए।

• इनकम टैक्स की छूट की सीमा को 7 लाख से बढ़ाकर 10 लाख किया जाए।

• आवश्यक वस्तुओं के ऊपर से जीएसटी खत्म की जाए।

• सीनियर सिटिजन्स के लिए मजबूत रिटायरमेंट प्लान और पेंशन योजना बनाई जाए। इसके साथ ही देशभर में वरिष्ठ नागरिकों को मुफ्त और अच्छा इलाज दिया जाए।

• बुजुर्गों को पहले रेलवे में किराए पर 50 प्रतिशत छूट मिलती थी, जो अब खत्म कर दी गई है, उसे दोबारा शुरू किया जाए।

आरजी कर मामले में हाईकोर्ट पहुंची ममता सरकार, संजय रॉय के लिए मांगी मौत की सजा
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पश्चिम बंगाल सरकार ने आरजी कर बलात्कार और हत्या मामले में सियालदह कोर्ट की विशेष अदालत की सजा के खिलाफ कलकत्ता हाईकोर्ट का रुख किया है। ट्रायल कोर्ट ने मामले के दोषी संजय रॉय को आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी। एडवोकेट जनरल किशोर दत्ता ने जस्टिस देबांगशु बसाक की अध्यक्षता वाली खंडपीठ का रुख कर संजय रॉय के लिए मौत की सजा की मांग की है। मामले को दायर करने की अनुमति दे दी गई है।

कलकत्ता हाईकोर्ट ने मंगलवार को पश्चिम बंगाल सरकार को सियालदह कोर्ट के उस आदेश के खिलाफ अपील दायर करने की अनुमति दे दी, जिसमें आरजी कर अस्पताल के डॉक्टर के दुष्कर्म और हत्या मामले में संजय रॉय को मृत्यु तक आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई थी। महाधिवक्ता किशोर दत्ता ने मामले में एकमात्र दोषी रॉय को मृत्युदंड देने की मांग करने के लिए न्यायमूर्ति देबांगसु बसाक की अध्यक्षता वाली खंडपीठ में अपील दायर करने का अनुरोध किया। राज्य सरकार ने सियालदह में अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश अनिरबन दास के आदेश को चुनौती देने के लिए हाईकोर्ट से अपील दायर करने की अनुमति मांगी थी।

*सियालदेह कोर्ट ने क्यों नहीं दी मौत की सजा?*
सजा के ऐलान से पहले हुई सुनवाई में अतिरिक्त जिला एव सत्र जज अनिर्बान दास ने इस पूरे मामले को 'रेयरेस्ट ऑफ रेयर' नहीं माना। यानी यह एक दूर्लभतम अपराध नहीं था। 'रेयरेस्ट ऑफ रेयर अपराध' में उन मामलों को रखा जाता है जहां बेहद क्रुरता और जघन्यता के साथ अपराध को अंजाम दिया जाता है। आरजी कर मामले में जज को दोषी में इस तरह की प्रवृत्ति नहीं दिखाई दी।
जज अनिर्बान दास ने संजय रॉय को उम्रकैद की सजा सुनाने के साथ ही उसे 50,000 रुपए का जुर्माना भी लगाया। इसके साथ ही जज ने राज्य सरकार को निर्देश दिया कि वह पीड़िता के परिवार को 17 लाख रुपए का हर्जाना दे।

*संजय रॉय ने खुद को बताया था निर्दोष*
संजय रॉय को बीते शनिवार ही दोषी मान लिया गया था। सोमवार को केवल सजा का ऐलान बाकी था। इस दौरान सुनवाई के वक्त संजय ने एक बार फिर से खुद को बेगुनाह बताया। सुनवाई के दौरान सीबीआई के वकील ने जज अनिर्बान दास से संजय को इस अपराध के लिए अधिकतम सजा देने की गुहार लगाई। उन्होंने इसके पीछे यह दलील दी कि सजा ऐसी होनी चाहिए कि लोगों का भरोसा हमारे समाज में बना रहे। उधर, संजय के वकील ने मृत्युदंड के खिलाफ तर्क दिया। उन्होंने कहा कि अभियोजक को यह साबित करना चाहिए कि संजय सुधार के लायक नहीं है और उसे समाज से पूरी तरह से खत्म कर दिया जाना चाहिए।
*कैग रिपोर्ट में देरी होने पर हाई कोर्ट ने दिल्ली सरकार को फटकारा, कहा- आपकी ईमानदारी पर संदेह

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दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले आई कैग रिपोर्ट का मुद्दा दिल्ली हाईकोर्ट पहुंच गया है। 7 भाजपा विधायकों ने कैग की रिपोर्ट पर विधानसभा में चर्चा करवाने की याचिका दिल्ली हाईकोर्ट में लगाई थी, जिस पर सोमवार को कोर्ट ने दिल्ली सरकार को फटकार लगाई। दिल्ली हाईकोर्ट ने कैग रिपोर्ट पर विचार करने में देरी के लिए दिल्ली सरकार को फटकार लगाते हुए कहा कि जिस तरह से आपने अपने कदम पीछे खींचे हैं, उससे आपकी ईमानदारी पर संदेह पैदा होता है।

हाईकोर्टकी नाराजगी की वजह

कोर्ट ने विजेंदर गुप्ता सहित भारतीय जनता पार्टी के विधायकों की ओर से दायर याचिका पर हाई कोर्ट ने जोर देते हुए कहा, “आपको रिपोर्ट को तुरंत स्पीकर के पास भेजना चाहिए था और सदन में बहस शुरू करवानी चाहिए थी। दरअसल, दिल्‍ली सरकार की यह जिम्‍मेदारी थी कि इस रिपोर्ट को विधानसभा में पेश किया जाता, लेकिन आम आदमी पार्टी की सरकार ने ऐसा नहीं किया। यही वजह है कि हाईकोर्ट ने सरकार के इस रवैये पर नाराजगी जाहिर की।

आपका टालमटोल बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण-हाई कोर्ट

दिल्ली हाईकोर्ट ने सरकार से कहा कि आप जिस तरह से टालमटोल कर रहे हैं, वह दुर्भाग्यपूर्ण है। आपको कैग रिपोर्ट को विधानसभा स्पीकर के पास भेजने और विधानसभा में चर्चा करने में तत्पर होना चाहिए था।

कैग रिपोर्ट में किया गया दावा

सीएजी रिपोर्ट में यह दावा किया गया है कि पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल ने सिविल लाइंस स्थित सरकारी आवास के रिनोवेशन पर 33.66 करोड़ रुपये खर्च किए थे। लागत से 342 प्रतिशत ज्‍यादा रकम इस काम के लिए खर्च की गई। रिपोर्ट में कहा गया कि अरविंद केजरीवाल के घर के रिनोवेशन का काम 8.62 करोड़ रुपये की निविदा पर किया जाना था। इसकी अनुमानित लागत 7.61 करोड़ तय की गई थी। शुरुआत में ही यह 13.21 प्रतिशत ज्‍यादा थी। जब अरविंद केजरीवाल के घर का काम खत्‍म हुआ तो यह अनुमानित लागत से 342.31 प्रतिशत ज्‍यादा था। यह रकम निविदा राशि से 290.49 प्रतिशत अधिक पाई गई।

फारूक अब्दुल्ला का आरोप: यूपी सरकार मुगलों का इतिहास मिटाने के लिए नाम बदल रही है

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नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने गुरुवार को उत्तर प्रदेश सरकार पर मुगलों के इतिहास को मिटाने का आरोप लगाया। पीटीआई के अनुसार अब्दुल्ला ने कहा, "वे मुगलों के इतिहास को मिटाना चाहते हैं, ऐसा नहीं होगा। वे (मुगल) सैकड़ों वर्षों तक यहां रहे और यहीं दफन भी हुए।" नेशनल कॉन्फ्रेंस के प्रमुख मुगल बादशाह औरंगजेब पर समाजवादी पार्टी के विधायक की टिप्पणी और शहरों और ऐतिहासिक इमारतों के नाम बदलने के उत्तर प्रदेश सरकार के फैसले पर उठे विवाद पर पूछे गए सवाल का जवाब दे रहे थे। 

महाराष्ट्र के समाजवादी पार्टी के विधायक अबू आजमी द्वारा मुगल बादशाह औरंगजेब की प्रशंसा करने के बाद राजनीतिक तूफान खड़ा हो गया, जिस पर सत्तारूढ़ भाजपा ने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की। आजमी ने औरंगजेब को "अच्छा प्रशासक" कहा था और दावा किया था कि उनके शासन में भारत ने खूब तरक्की की। संसदीय कार्य मंत्री चंद्रकांत पाटिल द्वारा प्रस्ताव पेश किए जाने के बाद उन्हें महाराष्ट्र विधानसभा से निलंबित कर दिया गया। 

उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विवाद पर चुप्पी साधने के लिए समाजवादी पार्टी की आलोचना की थी और आजमी का नाम लिए बिना मांग की थी कि उन्हें पार्टी से निकाल दिया जाना चाहिए। योगी आदित्यनाथ ने कहा था, "उन्हें यूपी भेजो, हम जानते हैं कि ऐसे लोगों से कैसे निपटना है। इसमें हमें ज्यादा समय नहीं लगेगा।" आदित्यनाथ ने सपा पर भारत की सांस्कृतिक विरासत का सम्मान न करने और इसके वैचारिक संस्थापक डॉ. राम मनोहर लोहिया के सिद्धांतों से भटकने का आरोप लगाया। "लोहिया भगवान राम, भगवान कृष्ण और भगवान शिव को भारत की एकता के स्तंभ मानते थे। लेकिन आज सपा औरंगजेब जैसे शासक का महिमामंडन कर रही है।" 

ऐतिहासिक विवरणों का हवाला देते हुए सीएम ने बताया कि औरंगजेब ने अपने पिता शाहजहां को आगरा किले में कैद कर दिया था और उन्हें पानी तक नहीं दिया था। उन्होंने सपा सदस्यों को पटना की लाइब्रेरी में जाकर शाहजहां की जीवनी पढ़ने की सलाह दी थी, जिसमें उनके अनुसार मुगल ने एक बार औरंगजेब से कहा था: “एक हिंदू तुमसे बेहतर है, क्योंकि वह जीवित रहते हुए अपने माता-पिता की सेवा करता है और मरने के बाद उनके सम्मान में अनुष्ठान करता है।”

राहुल गांधी ने सरकार को लिखा पत्र, उठाया एनसीएससी-एनसीबीसी में खाली पदों का मुद्दा


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विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग (एनसीएससी) और राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग (एनसीबीसी) में रिक्त पदों का मुद्दा उठाया है। इसको लेकर लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने केंद्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री वीरेंद्र कुमार को एक पत्र लिखा है। उन्होंने सरकार से अपील की कि इन संस्थाओं को उनके सांविधानिक कार्यों को पूरा करन के लिए जल्द से जल्द इन रिक्तियों को भरा जाए। 

इस पत्र में राहुल गांधी ने कहा है कि पूरे देश में हजारों दलित-पिछड़े न्याय की लड़ाई लड़ रहे हैं। हर जगह जातिगत जनगणना की मांग गूंज रही है। ऐसे वक्त में भाजपा सरकार द्वारा जानबूझकर सामाजिक न्याय सुनिश्चित करने वाली संवैधानिक संस्थाओं में अहम पदों को खाली रखना उनकी दलित-पिछड़ा विरोधी मानसिकता को दिखाता है। मैं सरकार से आग्रह करता हूं कि वो एनसीएससी और एनसीबीसी में रिक्तियों को जल्द से जल्द भरकर संस्थानों को उनके संवैधानिक जनादेश को पूरा करने के लिए सशक्त बनाए।

कांग्रेस नेता ने एक मार्च को कुमार को लिखे पत्र में बताया कि 3 मार्च और 2024 को एनसीएससी के सातवें अध्यक्ष और दो सदस्यों की नियुक्ति की गई, लेकिन उपाध्यक्ष का पद करीब एक साल से खाली पड़ी है। उन्होंने कहा कि दलित भाई-बहनों के अधिकारों की रक्षा करने में एनसीएससी की अहम भूमिका है और हजारों लोग न्याय के लिए इस आयोग के पास जाते हैं। उन्होंने कहा, आयोग ने दलितों के सामाजिक और आर्थिक विकास में बाधा डालने वाले मुद्दों को सक्रियता से उठाया है, जिनमें सार्वजनिक रोजगार, शिक्षा तक पहुंच और अत्याचारों की रोकथाम शामिल हैं। 

राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि इस आयोग को कमजोर करने की जानबूझकर कोशिश सरकार के दलित विरोधी मानसिकता को उजागर करती है। राहुल गांधी ने अपने पत्र में एनसीबीसी उपाध्यक्ष के पद के बारे में भी चिंता व्यक्त की, जो तीन साल से खाली पड़ा है। उन्होंने कहा कि एनसीबीसी वर्तमान में केवल अध्यक्ष और एक सदस्य के साथ कार्य कर रहा है। 1993 में अपनी स्थापना के बाद से, एनसीबीसी में हमेशा अध्यक्ष और उपाध्यक्ष/सदस्य सचिव के अलावा कम से कम तीन सदस्य होते थे। इस महत्वपूर्ण समय में जब देशभर में जाति जनगणना की मांग तेज हो रही है, इस पद का रिक्त रहना अत्यंत चौंकाने वाला है।

एमसीडी के 12000 संविदा कर्मचारी होंगे स्थायी, जानें क्या है दिल्ली हारने के बाद आप का प्लान

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दिल्ली विधानसभा चुनाव में करारी हार के बाद आम आदमी पार्टी (आप) चुप नहीं बैठी है। विधानसभा चुनाव में शिकस्त के बाद आप दिल्ली नगर निगम यानी एमसीडी के जरिये बीजेपी सरकार को ताकत दिखान की कोशिश में है। पूर्व मुख्यमंत्री और नेता प्रतिपक्ष बनाई गईं आतिशी के ताजा बयान से तो ऐसे ही संकेत मिल रहे हैं। दरअसल, आतिशी ने रविवार को घोषणा की कि दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) मंगलवार को होने वाली अपनी सदन की बैठक में 12,000 संविदा कर्मचारियों को नियमित करने की तैयारी में है।

आम आदमी पार्टी की नेता आतिशी ने रविवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान इस फैसले की घोषणा करते हुए कहा कि ‘आप’ के नेतृत्व वाली एमसीडी अस्थायी कर्मचारियों को नियमित करने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा, पिछले दो वर्षों में हमने 4,500 (संविदा) कर्मचारियों को स्थायी किया है। अब 25 फरवरी को एमसीडी सदन की बैठक में हम सफाई कर्मचारियों, कनिष्ठ अभियंताओं, वरिष्ठ अभियंताओं, माली और अन्य संविदा कर्मचारियों सहित सभी विभागों में 12,000 से अधिक कर्मचारियों को नियमित करने जा रहे हैं।

आतिशी ने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर इस बारे में जानकारी देते हुए एक पोस्ट किया है। अपनी पोस्ट में आतिशी ने लिखा है, दिल्ली एमसीडी में आप सरकार ने ऐतिहासिक निर्णय लेते हुए सभी विभागों के 12,000 अस्थाई कर्मचारियों को पक्का करने का फैसला किया है। 25 फरवरी को होने वाली एमसीडी सदन की बैठक में इस प्रस्ताव पर मुहर लगेगी। हमने एमसीडी के कच्चे कर्मचारियों से जो वादा किया था, उसे पूरा करने जा रहे हैं। देश के इतिहास में किसी भी सरकार ने इतना बड़ा फैसला नहीं लिया, जो आज अरविंद केजरीवाल जी के मार्गदर्शन में एमसीडी की "आप" सरकार लेने जा रही है।

वहीं आम आदमी पार्टी के प्रमुख अरविंद केजरीवाल ने एक्स पर लिखा, एमसीडी के सभी 12,000 अस्थायी कर्मचारियों को बहुत-बहुत शुभकामनाएं। आम आदमी पार्टी ने अपना वादा निभाते हुए निगम के इन अस्थायी कर्मचारियों को स्थायी करने का ऐतिहासिक फैसला कर लिया है। 25 फरवरी को एमसीडी सदन की बैठक में ये प्रस्ताव पारित होगा।

दिल्ली में विभागों का बंटवारा! सीएम रेखा गुप्ता के पास गृह-वित्त, प्रवेश वर्मा-कपिल मिश्रा को क्या मिला?

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दिल्ली में नई सरकार का गठन हो गया है। मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता और उनके कैबिनेट ने गुरुवार को रामलीला मैदान में शपथ ली। उप राज्यपाल विनय सक्सेना ने मुख्यमंत्री और सभी मंत्रियों को पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई। मुख्यमंत्री समेत कुल सात सदस्यीय नई कैबिनेट में मुख्यमंत्री इकलौती महिला हैं। रेखा गुप्ता की कैबिनेट में प्रवेश वर्मा और कपिल मिश्रा के अलावा राजौरी गार्डन विधानसभा क्षेत्र से मनजिंदर सिंह सिरसा, बवाना से रविंद्र कुमार इंद्राज, जनकपुरी से आशीष सूद और विकासपुरी से पंकज कुमार सिंह शामिल है।

दिल्ली में भाजपा सरकार के शपथ के बाद मंत्रियों के बीच विभागों का बंटवारा कर दिया गया। सूत्रों के मुताबिक, दिल्ली की बीजेपी सरकार में सीएम रेखा गुप्ता ने गृह, वित्त, सेवा, विजिलेंस और प्लानिंग जैसे विभाग अपने पास रखे हैं। वहीं प्रवेश वर्मा को भी शिक्षा, पीडब्ल्यूडी और ट्रांसपोर्ट जैसे अहम मंत्रालय दिए गए हैं। इसके अलावा कपिल मिश्रा को जल, पर्यटन और संस्कृति विभाग सौंपा गया है। हालांकि अभी विभागों के इस बंटवारे की आधिकारिक रूप से पुष्टि नहीं की गई है।

जानें किस मंत्री को मिला क्या विभाग

1. रेखा गुप्ता (मुख्यमंत्री) – गृह, वित्त, सेवाएं, सतर्कता, योजना

2. प्रवेश वर्मा- शिक्षा, लोक निर्माण विभाग, परिवहन

3. मनजिंदर सिंह सिरसा- स्वास्थ्य, शहरी विकास, उद्योग

4. रविन्द्र कुमार इंद्रराज – समाज कल्याण, एससी/एसटी मामले, श्रम

5. कपिल मिश्रा- जल, पर्यटन, संस्कृति

6. आशीष सूद राजस्व, पर्यावरण, खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति

7. पंकज कुमार सिंह- विधि, विधायी कार्य, आवास

From Rugged Roads to India’s World-Class Expressways: Rajveer Singh’s Mega Road Trip Begins April 13, 2025

India’s Luxury Drive: Rajveer Singh’s Mega Road Expedition to Showcase India’s Highways, Culture, and Luxury Travel – Kicking Off on April 13, 2025.

Starting on April 13, 2025, Rajveer will embark on a spectacular 35-day journey covering the legendary Golden Quadrilateral and beyond. This ambitious campaign is already drawing national attention, with Rajveer’s team in discussions with key government bodies, including the Ministry of Tourism, the Ministry of Culture, and the Ministry of Road Transport and Highways, to support and amplify this initiative. Joining him on this drive are Vibha Narshana, CEO of Party and Travels, and Roshan Kamble, a talented cinematographer who will capture the essence of this groundbreaking expedition.

India’s highways have undergone a remarkable transformation, evolving from rugged roads into world-class expressways that now connect the entire nation with speed, safety, and efficiency. These roads are more than just infrastructure; they are the backbone of progress, fueling economic growth, tourism, and cultural exchange. To celebrate this monumental development and position India as a top-tier road-trip destination, Rajveer Singh an award-winning digital creator with 1.7 million followers, is launching India’s Luxury Drive—a grand digital campaign that will showcase the country’s highways, rich heritage, and luxury travel experiences like never before.

India’s Luxury Drive is more than just a road trip; it is a storytelling revolution that will redefine the way the world sees India’s highways and travel potential. With 175+ premium videos, 1000+ Instagram stories, and 50+ YouTube long videos, this drive is set to generate over 100 million digital impressions, making it one of the most high-impact travel campaigns ever.

Rajveer’s journey will highlight not just the speed and convenience of modern Indian highways but also the immersive cultural experiences that lie along these routes. With a portfolio that includes collaborations with top brands like Samsung, Canon, DJI, Thar, Nvidia, and Sahara Star, he will blend luxury, adventure, and heritage into an unforgettable digital experience.

For brands, tourism boards, and industry leaders, India’s Luxury Drive presents a golden opportunity to align with a campaign that will leave a lasting imprint on India's travel and digital landscape. The road to history is being paved—who’s ready to ride along? Instagram handle

विदेश मंत्री एस जयशंकर के अमेरिका दौरे पर राहुल गांधी ने ऐसा क्या कहा, भड़क गया सत्ता पक्ष

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संसद के बजट सत्र में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने चर्चा में हिस्सा लिया। लोकसभा में विपक्ष के नेता ने कई मुद्दों पर सरकार को घेरा। लोकसभा में चर्चा के दौरान कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की शपथ का जिक्र किया और कहा कि पीएम मोदी को शपथ का निमंत्रण मिले इसलिए विदेश मंत्री जयशंकर को अमेरिका भेजा था।

राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि विदेश मंत्री एस जयशंकर को तीन बार अमेरिका भेजा गया ताकि प्रधानमंत्री को वहां आने का न्योता मिल सके। दरअसल, राहुल गांधी ने कहा कि चीन आज एआई, बैट्री, इलेक्ट्रिक कार, ऑप्टिक्स के क्षेत्र में तेजी से बढ़ रहा है, लेकिन हम इसमें पीछे हैं। राष्ट्रपति के अभिभाषण में इस मुद्दे पर बात होनी चाहिए थी। साथ ही हमारे बैंकिंग सेक्टर पर दो या तीन बड़ी कंपनियों का ही प्रभाव नहीं होना चाहिए और छोटी और मध्यम वर्ग की कंपनियों को भी बैंकिंग सेक्टर तक आसान पहुंच होनी चाहिए। अगर ऐसा होता तो हमारे विदेश मंत्री को तीन-चार बार अमेरिका जाकर ये नहीं कहना पड़ता कि हमारे प्रधानमंत्री को आमंत्रित करें।' राहुल गांधी ने कहा कि 'अगर हमने इन क्षेत्रों में काम किया होता तो अमेरिका खुद हमारे प्रधानमंत्री को आमंत्रित करता।

राहुल गांधी के इस बयान पर सत्ता पक्ष ने आपत्ति जताई। केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू जवाब देने के लिए उठे। उन्होंने कहा कि विपक्ष के नेता को बिना किसी सबूत के ऐसे आरोप नहीं लगाने चाहिए। ये दो देशों का मुद्दा है। ये विदेश नीति का मामला है। रिजिजू ने कहा कि वो विपक्ष के नेता हैं। उन्हें जिम्मेदार होना चाहिए। रिजिजू ने कहा कि अगर विपक्ष के नेता के पास भले ही किसी स्रोत से ऐसी जानकारी हो, जो उन्होंने कहा है तो उसे सदन में रखना चाहिए।

राहुल गांधी ने तंज कसते हुए कहा कि मैं आपकी दिमागी शांति भंग करने के लिए माफी मांगता हूं। मैं ये सवाल को उठाने के लिए माफी मांगता हूं। आई एम सॉरी। इसपर रिजिजू ने कहा कि आपने सदन में झूठ बोला है। इसके लिए माफी मांगों। आपको देश के मामले में तो एक होना चाहिए। रिजिजू ने कहा कि विपक्ष के नेता को इस तरह की बयानबाजी नहीं करनी चाहिए। गंभीर विषय पर चर्चा चल रही है।

बता दें कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बीते दिनों अपने शपथ ग्रहण समारोह में चीन के राष्ट्रपति को आमंत्रित किया था, लेकिन भारत से विदेश मंत्री एस जयशंकर, ट्रंप के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल हुए। राहुल गांधी के बयान को इसी से जोड़कर देखा जा रहा है।

लोकसभा में राहुल गांधी ने बेरोजगारी के मुद्दे पर सरकार को घेरा, बोले-मेक इन इंडिया फेल

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लोकसभा में बजट सत्र के तीसरे दिन राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा शुरू हुई है। लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा में भाग लिया।राष्ट्रपति के अभिभाषण पर जवाब देते हुए राहुल गांधी ने कहा कि इसमें नया कुछ नहीं। राष्ट्रपति के अभिभाषण में कुछ भी नया नहीं है। राष्ट्रपति का अभिभाषण वैसा नहीं था, जैसा होना चाहिए था। ये अभिभाषण अलग होना चाहिए। मैं यहां कुछ वैकल्पिक बातें बता रहा हूं और ऐसा अभिभाषण हो सकता था। इस दौरान राहुल गांधी ने मोदी सरकार पर कई हमले किए।

रिलायंस, अडाणी, टाटा सब बढे पर तेज नहीं- राहुल

राहुल ने कहा कि पिछले 60 सालों में सबसे कम इंफ्रास्टक्चर हुआ है, तो इस सवाल का जवाब क्या है, युवाओं को क्या बताएंगे? कोई भी देश दो चीजों पर चलता है कंज्प्शन और प्रोडक्शन, 1990 से सभी सरकारों ने कंज्प्शन पर अच्छा काम किया। रिलायंस, अडाणी, टाटा, महिंद्रा सभी तेजी से बढ़े लेकिन ओवरऑल देश का विकास नहीं हुआ। लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने कहा कि युवाओं के रोजगार के मसले पर सरकारें गंभीर नहीं हैं। उन्होंने कहा कि इस मसले पर पूर्व की यूपीए सरकार हो या फिर मौजूदा पीएम मोदी की सरकार दोनों ने इसका कोई जवाब नहीं दिया।

पीएम मोदी ने मेक इन इंडिया को सफल बनाने का प्रयास नहीं किया-राहुल गांधी

नेता प्रतिपक्ष ने आगे कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी की मेक इन इंडिया योजना अच्छी थी लेकिन, सच्चाई यह है कि यह योजना पूरी तरह विफल साबित हुई है। रोजगार के मसले पर इस सरकार की योजना साफ नहीं है। राहुल गांधी ने कहा कि मैं पीएम नरेंद्र मोदी की आलोचना नहीं करा रहा हूं। मैं नहीं कहूंगा कि प्रधानमंत्री (नरेंद्र मोदी) ने मेक इन इंडिया को सफल बनाने के लिए प्रयास नहीं किया, लेकिन वो इसमें असफल रहे।

भारत में मोबाइल फोन बनते नहीं, असेंबल हो रहे-राहुल गांधी

कांग्रेस सांसद ने कहा कि देश में मैनुफैक्चरिंग सेक्टर में गिरावट आई है। उन्होंने मोबाइल का उदाहरण दिया। उन्होंने कहा कि भारत में मोबाइल फोन बन नहीं रहे हैं। यहां ये असेंबल हो रहे हैं। मोबाइल का हर एक पार्ट चीन से आता है और अपने यहां उसे केवल असेंबल किया जाता है।

दुनिया आज पूरी तरह से बदल रही है

राहुल गांधी ने कहा कि दुनिया आज पूरी तरह से बदल रही है। बदलाव जो हो रहा है कि दुनिया ईवी की तरफ बढ़ रही है, हम पेट्रोल से बैट्री की तरफ जा रहे हैं। सोलर और न्यूक्लियर एनर्जी की तरफ जा रहे हैं। ये बदलाव वॉर फेयर, एजुकेशन समेत हर जगह बदल रहा है। आखिरी बार हमने कंप्यूटर क्रांति देखी थी। कांग्रेस सरकार ने सॉफ्टवेयर डिवेलपमेंट पर ध्यान दिया था। मुझे याद है कि उस समय लोग हंस रहे थे। वाजपेयी ने भी कहा था कि कंप्यूटर का भारत में कोई भविष्य नहीं है।

यूक्रेन में युद्ध लड़ा जा रहा है, ईवी और इंजन से- राहुल गांधी

लोकसभा में राहुल गांधी ने कहा कि यूक्रेन में युद्ध लड़ा जा रहा है, ईवी और इंजन से है। इलेक्ट्रिक मोटर ड्रोन में है, इंजन टैंक में है। देखिए आज यूक्रेन में क्या हो रहा है टैंक का खात्मा हो रहा है लेकिन ड्रोन कमाल कर रहा है। ड्रोन पूरे टैंक को ध्वस्त कर रहा है। ड्रोन इलेक्ट्रिक मोटर है, ये बैट्री है। इलेक्ट्रिक कार और रोबॉट्स भी इलेक्ट्रिक मोटर है। चार तरह की तकनीक पूरी दुनिया को ड्राइव कर रही है, इलेक्ट्रिक मोटर, बैट्री, ऑप्टिकस, एआई।

दुनिया के बदलावों पर सरकार सजग नहीं- राहुल गांधी

राहुल गांधी ने कहा कि दुनिया के बदलावों पर सरकार सजग नहीं है। चीन भारत से 10 साल आगे है, बैट्री, मोटर, ऑप्टिक से। राष्ट्रपति के अभिभाषण में युवाओं के लिए क्या था। जब हम अमेरिका की बात करते हैं तो हम अपने विदेश मंत्री को अपने पीएम को विदेशी मुद्दे पर बुलाने के लिए अमेरिका नहीं भेजते हैं। हम उन्हें ये जाकर नहीं कहते कि हमारे पीएम को बुलाइए। अगर हमारे पास प्रोडक्शन सिस्टम होता तो हम उनको मजबूर करते कि वो आकर हमारे पीएम को बुलाते।

केजरीवाल की केंद्र के सामने उठाया मिडिल क्लास का मुद्दा, रखी ये 7 मांगें

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दिल्ली में 5 फरवरी को विधानसभा चुनाव होने हैं। इस चुनाव में आम आदमी पार्टी तीसरी बार सत्ता वापसी के लिए पूरा जोर लगा रही है। आप ने इस चुनाव में जीत पक्की करने के ले हर एक वर्ग को साधने की कोशिश की है। आम आदमी पार्टी के संयोजक और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने महिलाओं से लेकर बुजुर्गों और युवाओं तक पर दांव खेला है। अब केजरीवाल की नजर मिडिल क्लास पर है। इस बीच बुधवार को आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया और देश के मिडिल क्लास को लेकर कई जरूरी मुद्दों पर बात की। इसके साथ ही केंद्र सरकार से 7 मांगें भी की हैं।

मिडिल क्लास केवल एटीएम बनकर रह गया-केजरीवाल

अरविंद केजरीवाल ने कहा कि कई वादे धर्म और जाति के नाम पर किए जाते हैं। कई वादे समाज के निचले तबके के लिए किए जाते हैं। कई वादे उद्योगपतियों के लिए किए जाते है। कुछ लोग इनके वोट बैंक हैं। एक वर्ग इनके बीच में है जो पिसकर रह गया है। 75 सालों में एक के बाद एक दूसरी पार्टी सत्ता में आई। हर सरकार ने मिडिल क्लास को दबाकर रखा है। ये मिडिल क्लास के लिए करते कुछ नहीं है लेकिन टैक्स का हथियार चला देती है। मिडिल क्लास सरकार का एटीएम बनकर रह गया है।

मिडिल क्लास की आवाज उठाएगी आप-केजरीवाल

आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने कहा कि मिडिल क्लास पर टैक्स का बोझ सबसे ज्यादा है। मिडिल क्लास को हमारे देश में सबसे ज्यादा परेशान किया जाता है। मिडिल क्लास वालों की 50 प्रतिशत से ज्यादा आमदनी टैक्स देने में चली जाती है। केजरीवाल ने कहा कि आम आदमी पार्टी सड़क से लेकर संसद तक मिडिल क्लास की आवाज उठाएगी। आने वाले बजट में आम आदमी पार्टी के सांसद मिडिल क्लास के मुद्दों को ही संसद में उठाएंगे।

मिडिल क्लास के लिए केजरीवाल की 7 मांगे

• शिक्षा का बजट 2 परसेंट से बढ़ाकर 10 प्रतिशत किया जाए।

• पूरे देश में प्राइवेट स्कूलों की फीस पर लगाम लगाई जाए, उच्च शिक्षा के लिए सब्सिडी दी जाए।

• स्वास्थ्य क्षेत्र का बजट भी बढ़ाया जाए और हेल्थ इंश्योरेंस से टैक्स भी कम किया जाए।

• इनकम टैक्स की छूट की सीमा को 7 लाख से बढ़ाकर 10 लाख किया जाए।

• आवश्यक वस्तुओं के ऊपर से जीएसटी खत्म की जाए।

• सीनियर सिटिजन्स के लिए मजबूत रिटायरमेंट प्लान और पेंशन योजना बनाई जाए। इसके साथ ही देशभर में वरिष्ठ नागरिकों को मुफ्त और अच्छा इलाज दिया जाए।

• बुजुर्गों को पहले रेलवे में किराए पर 50 प्रतिशत छूट मिलती थी, जो अब खत्म कर दी गई है, उसे दोबारा शुरू किया जाए।

आरजी कर मामले में हाईकोर्ट पहुंची ममता सरकार, संजय रॉय के लिए मांगी मौत की सजा
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पश्चिम बंगाल सरकार ने आरजी कर बलात्कार और हत्या मामले में सियालदह कोर्ट की विशेष अदालत की सजा के खिलाफ कलकत्ता हाईकोर्ट का रुख किया है। ट्रायल कोर्ट ने मामले के दोषी संजय रॉय को आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी। एडवोकेट जनरल किशोर दत्ता ने जस्टिस देबांगशु बसाक की अध्यक्षता वाली खंडपीठ का रुख कर संजय रॉय के लिए मौत की सजा की मांग की है। मामले को दायर करने की अनुमति दे दी गई है।

कलकत्ता हाईकोर्ट ने मंगलवार को पश्चिम बंगाल सरकार को सियालदह कोर्ट के उस आदेश के खिलाफ अपील दायर करने की अनुमति दे दी, जिसमें आरजी कर अस्पताल के डॉक्टर के दुष्कर्म और हत्या मामले में संजय रॉय को मृत्यु तक आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई थी। महाधिवक्ता किशोर दत्ता ने मामले में एकमात्र दोषी रॉय को मृत्युदंड देने की मांग करने के लिए न्यायमूर्ति देबांगसु बसाक की अध्यक्षता वाली खंडपीठ में अपील दायर करने का अनुरोध किया। राज्य सरकार ने सियालदह में अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश अनिरबन दास के आदेश को चुनौती देने के लिए हाईकोर्ट से अपील दायर करने की अनुमति मांगी थी।

*सियालदेह कोर्ट ने क्यों नहीं दी मौत की सजा?*
सजा के ऐलान से पहले हुई सुनवाई में अतिरिक्त जिला एव सत्र जज अनिर्बान दास ने इस पूरे मामले को 'रेयरेस्ट ऑफ रेयर' नहीं माना। यानी यह एक दूर्लभतम अपराध नहीं था। 'रेयरेस्ट ऑफ रेयर अपराध' में उन मामलों को रखा जाता है जहां बेहद क्रुरता और जघन्यता के साथ अपराध को अंजाम दिया जाता है। आरजी कर मामले में जज को दोषी में इस तरह की प्रवृत्ति नहीं दिखाई दी।
जज अनिर्बान दास ने संजय रॉय को उम्रकैद की सजा सुनाने के साथ ही उसे 50,000 रुपए का जुर्माना भी लगाया। इसके साथ ही जज ने राज्य सरकार को निर्देश दिया कि वह पीड़िता के परिवार को 17 लाख रुपए का हर्जाना दे।

*संजय रॉय ने खुद को बताया था निर्दोष*
संजय रॉय को बीते शनिवार ही दोषी मान लिया गया था। सोमवार को केवल सजा का ऐलान बाकी था। इस दौरान सुनवाई के वक्त संजय ने एक बार फिर से खुद को बेगुनाह बताया। सुनवाई के दौरान सीबीआई के वकील ने जज अनिर्बान दास से संजय को इस अपराध के लिए अधिकतम सजा देने की गुहार लगाई। उन्होंने इसके पीछे यह दलील दी कि सजा ऐसी होनी चाहिए कि लोगों का भरोसा हमारे समाज में बना रहे। उधर, संजय के वकील ने मृत्युदंड के खिलाफ तर्क दिया। उन्होंने कहा कि अभियोजक को यह साबित करना चाहिए कि संजय सुधार के लायक नहीं है और उसे समाज से पूरी तरह से खत्म कर दिया जाना चाहिए।
*कैग रिपोर्ट में देरी होने पर हाई कोर्ट ने दिल्ली सरकार को फटकारा, कहा- आपकी ईमानदारी पर संदेह

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दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले आई कैग रिपोर्ट का मुद्दा दिल्ली हाईकोर्ट पहुंच गया है। 7 भाजपा विधायकों ने कैग की रिपोर्ट पर विधानसभा में चर्चा करवाने की याचिका दिल्ली हाईकोर्ट में लगाई थी, जिस पर सोमवार को कोर्ट ने दिल्ली सरकार को फटकार लगाई। दिल्ली हाईकोर्ट ने कैग रिपोर्ट पर विचार करने में देरी के लिए दिल्ली सरकार को फटकार लगाते हुए कहा कि जिस तरह से आपने अपने कदम पीछे खींचे हैं, उससे आपकी ईमानदारी पर संदेह पैदा होता है।

हाईकोर्टकी नाराजगी की वजह

कोर्ट ने विजेंदर गुप्ता सहित भारतीय जनता पार्टी के विधायकों की ओर से दायर याचिका पर हाई कोर्ट ने जोर देते हुए कहा, “आपको रिपोर्ट को तुरंत स्पीकर के पास भेजना चाहिए था और सदन में बहस शुरू करवानी चाहिए थी। दरअसल, दिल्‍ली सरकार की यह जिम्‍मेदारी थी कि इस रिपोर्ट को विधानसभा में पेश किया जाता, लेकिन आम आदमी पार्टी की सरकार ने ऐसा नहीं किया। यही वजह है कि हाईकोर्ट ने सरकार के इस रवैये पर नाराजगी जाहिर की।

आपका टालमटोल बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण-हाई कोर्ट

दिल्ली हाईकोर्ट ने सरकार से कहा कि आप जिस तरह से टालमटोल कर रहे हैं, वह दुर्भाग्यपूर्ण है। आपको कैग रिपोर्ट को विधानसभा स्पीकर के पास भेजने और विधानसभा में चर्चा करने में तत्पर होना चाहिए था।

कैग रिपोर्ट में किया गया दावा

सीएजी रिपोर्ट में यह दावा किया गया है कि पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल ने सिविल लाइंस स्थित सरकारी आवास के रिनोवेशन पर 33.66 करोड़ रुपये खर्च किए थे। लागत से 342 प्रतिशत ज्‍यादा रकम इस काम के लिए खर्च की गई। रिपोर्ट में कहा गया कि अरविंद केजरीवाल के घर के रिनोवेशन का काम 8.62 करोड़ रुपये की निविदा पर किया जाना था। इसकी अनुमानित लागत 7.61 करोड़ तय की गई थी। शुरुआत में ही यह 13.21 प्रतिशत ज्‍यादा थी। जब अरविंद केजरीवाल के घर का काम खत्‍म हुआ तो यह अनुमानित लागत से 342.31 प्रतिशत ज्‍यादा था। यह रकम निविदा राशि से 290.49 प्रतिशत अधिक पाई गई।