गिरिडीह:गांव में पथ की कमी व इलाज के अभाव में महिला की हो गई मौत,भाजपा नेताओं ने गांव में पहुंच लिया जायजा

गिरिडीह:जिले के डुमरी प्रखंड के छछंदो पंचायत का एक गांव है चौरीबेड़ा, जहां आवागमन के लिए रोड नहीं होने से लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।किसी ग्रामीण के बीमार होने पर उसे समय पर परिजन इलाज नहीं करवा पातें हैं और मौत हो जाती है।

एक ऐसा ही मामला पारसनाथ पहाड़ की तराई में बसे इस आदिवासी बाहुल्य गांव चौरीबेड़ा में प्रकाश में आया है।बताया जाता है कि इस गांव में एक महिला की मौत आवागमन के साधन के नहीं मिलने और इलाज के अभाव से हो गयी।परिजन उसे समय पर इलाज के लिए अस्पताल नहीं ले जा सके।बताया जाता है कि चोरीबेड़ा निवासी बबलू मुर्मु की पत्नी सीतामुनी देवी की तबियत तेरह नवंबर की शाम काफी खराब हो गयी थी।

परिजन चाह कर भी इस कारण उसे तत्काल अस्पताल नहीं ले जा सके क्योंकि रोड नहीं होने के कारण उसके घर तक कोई वाहन नहीं आ सकता था।मंगलवार की सुबह परिजन उसे खटिया से लगभग दो किमी पैदल टेसाफुली तक लाये और तब वाहन से उसे डुमरी रेफरल अस्पताल लाया। लेकिन तबतक उसकी मौत हो चुकी थी।

इस संबंध में मृतका के पति बबलू ने बताया कि सोमवार की शाम उसकी पत्नी ने बुखार और ठंड लगने की शिकायत की थी।उसे तत्काल कहीं से खरीदकर कुछ दवाई दिया।कुछ देर आराम मिलने के बाद फिर से उसकी तबियत खराब होने लगी।उसने उसे इलाज के लिए अस्पताल ले जाने को सोचा, परंतु सड़क नहीं होने के कारण कोई वाहन घर तक आने के लिए तैयार नहीं था।

किसी तरह रात बीती।सुबह में उसे खाट से टेसाफुली तक लाया और वहां से एक वाहन से डुमरी रेफरल अस्पताल।जहां चिकित्सकों ने उसे मुत घोषित कर दिया।कहा कि यदि उसे समय पर ईलाज मिल जाता तो उसे बचाया जा सकता था।इधर सूचना पर बुधवार को भाजपा नेता सुरेन्द्र कुमार और दीपक श्रीवास्तव गांव पहुंचे और परिजनों से मिलकर ढांढस बंधाया तथा हरसंभव मदद का आवासन दिया।

दोनों नेताओं ने कहा कि

सड़क के अभाव में किसी की मौत हो जाये तो इससे बुरा और कुछ नहीं हो सकता है,हम सरकार,यहां के जनप्रतिनिधि और जिला प्रशासन से मांग करते हैं कि जल्द से जल्द इस गांव में सड़क का निर्माण किया जाय ताकि ऐसी घटना की पुनरावृति नहीं हो।

गिरिडीह: दिवंगत पत्रकार प्रवीण पाण्डेय का शव डुमरी पुलिस ने पोस्टमार्टम हेतु भेजा


गिरिडीह: जिले की डुमरी थाना पुलिस द्वारा आज सुबह करीब 9 बजे यहां के दिवंगत युवा पत्रकार प्रवीण पाण्डेय का शव पोस्टमॉर्टम हेतु गिरिडीह भेजा गया।

बताया जाता है कि जिले के डुमरी थाना क्षेत्र में यहां के तेजस्वी प्रखर युवा पत्रकार प्रवीण पाण्डेय स्कूटी दुर्घटनाग्रस्त हो जाने से बुरी तरह घायल हो गए थे।जिससे उनकी मौत हो गई।

इधर थाने में उनके अंतिम दर्शन के लिए उत्पाद एवं मद्य निषेध मंत्री बेबी देवी के पुत्र अखिलेश महतो राजू,प्रखण्ड बीस सूत्री अध्यक्ष डेगलाल महतो सहित स्थानीय पत्रकार बिरेंद्र कुमार सिन्हा,युगल किशोर महतो,अजय कुमार रजक,लोकनाथ महतो आदि ने अपने दिवंगत साथी पत्रकार प्रवीण पाण्डेय के अंतिम दर्शन किया।

वहीं मृतक के परिजन व कई अन्य लोग मौजूद थे।जिसके बाद थाना पुलिस द्वारा शव को पोस्टमार्टम हेतु गिरिडीह भेज दिया गया।मौके पर मौजूद सभी लोग इस दुखद घटना पर अत्यंत क्षोभ प्रकट कर रहे थे।

गिरिडीह:अपर समाहर्ता विल्सन भेंगरा की अध्यक्षता में बाल दिवस पर सुरक्षित बचपन खुशहाल जीवन अभियान के तहत कार्यक्रम का किया गया आयोजन


गिरिडीह:उपायुक्त-सह-जिला दंडाधिकारी, नमन प्रियेश लकड़ा के निर्देशानुसार अपर समाहर्ता विल्सन भेंगरा की अध्यक्षता में बाल दिवस के शुभ अवसर पर सुरक्षित बचपन खुशहाल जीवन अभियान के तहत एक कार्यक्रम का आयोजन किया गया।

विदित हो कि दिनांक 31.10.2023 से 14.11.2023 तक समाज कल्याण महिला बाल विकास एवम सामाजिक सुरक्षा विभाग रांची झारखंड के द्वारा बाल विवाह महिला एवम बच्चों के खिलाफ हिंसा को समाप्त करने के लिए जागरूकता अभियान जिले में लगातार किया गया। इसी क्रम में जिला समाज कल्याण गिरिडीह के द्वारा आज वैसे बच्चियों को प्रशस्ति पत्र एवम स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया। जो बालिकाएं बाल विवाह, बाल हिंसा एवम बाल तस्करी के खिलाफ़ लड़ाई लड़ी। इस अवसर पर कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए श्री विल्सन भेंगरा ने बच्चियों को संबोधित करते हुए कहा कि आज के मोबाइल युग में मोबाइल का सकारात्मक प्रयोग किया जाना बच्चों के लिए हितकर होगा बच्चे किसी भी प्रकार से शोषित होते हो तो इसकी सूचना तुरंत अपने माता पिता एवम शिक्षक अथवा आपके हित में सोचने वाले को दें।

मुख्य अथिति प्रशिक्षु आईएएस कुमारी दीपेश ने कहा कि बेटियों को आगे बढ़ने में समाज के साथ साथ परिवार भी अवरोधक हो सकते हैं। परंतु अपनी दृढ़ इच्छाशक्ति से लक्ष्य प्राप्त कर सकते हैं। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए जिला समाज कल्याण पदाधिकारी श्रीमति अल्का हेंब्रम ने कहा कि इस पंद्रह दिवसीय अभियान के दौरान बाल विवाह, महिला एवम बच्चों के खिलाफ हिंसा को समाप्त करने के लिए जिले भर में विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए गए हैं। 

जिला सूचना एवम जन संपर्क पदाधिकारी श्रीमति रश्मि सिन्हा ने कार्यक्रम में उपस्थित बच्चियों के हौसला अफजाई की। वहीं जिला बाल संरक्षण पदाधिकारी श्री जीतू कुमार ने कार्यक्रम विषय प्रवेश कराते हुए आज के कार्यक्रम के मुख्य उद्शेयों पर प्रकाश डाला, उन्होंने कहा कि जिले भर में बाल संरक्षण के कार्यक्रम को सफलतापूर्वक चलाया जा रहा है आज के इस कार्यक्रम में सुदूरवर्ती तीसरी एवम गांव की बच्चियां भी उपस्थित है। जो बाल श्रम ढिबरा चुनने से मुक्त करवा कर शिक्षा से जोड़ा गया है एवम उनकी पढ़ाई लिखाई अवरुद्ध न हो इसके लिए बाल संरक्षण के द्वारा उन्हें स्पॉन्सरशिप योजना से जोड़ा गया है। कार्यक्रम पर चर्चा करते हुवे विधि सह प्रोबेशन पदाधिकारी श्री अहमद अली ने कहा कि बाल विवाह रोकथाम व बाल तस्करी के खिलाफ़ जिला बाल संरक्षण की इस मुहिम में विभिन्न गैर सरकारी संगठनों, जागो फाउंडेशन, कैलाश सत्यार्थी चिल्ड्रन फाउंडेशन एवम बनवासी विकाश आश्रम, की मुख्य भूमिका प्रशंसनीय है। इन सभी के सहयोग से बाल विवाह के आंकड़ों में कमियां आई है। आशा है की इन संगठनों का आगे भी सहयोग मिलता रहेगा। 

इस कार्यक्रम में प्रशिक्षु आईएएस कुमारी दीपेश, कार्यपालक दंडाधिकारी, सुदेश कुमार, जिला कल्याण पदाधिकारी, जिला समाज कल्याण पदाधिकारी अल्का हेंब्रम, जिला शिक्षा कार्यलय से बालिका शिक्षा प्रभारी श्रीमति रानू बोस व शिवली मुखर्जी, जिला बाल संरक्षण पदाधिकारी जीतू कुमार, विधि सह प्रोबेशन पदाधिकारी अहमद अली, संरक्षण पदाधिकारी संस्थागत श्यामा प्रसाद और कामेश्वर कुमार, परामर्शी नीलम कुमारी, सामाजिक कार्यकर्ता रविन्द्र कुमार सिन्हा, बाल संरक्षण से शोभा कुमारी जिला योजना सम्यक एक्सआईएसएस, यूनिसेफ श्री गणोरी विश्वकर्मा, बाल कल्याण समिति की अध्यक्ष पूजा सिन्हा, सदस्य श्रीमती सुनीता प्रसाद अन्य के अलावा जिला समन्वयक नीति आयोग अंजली बीन सिकदर के अलावे बनवासी विकाश आश्रम से श्री सुरेश शक्ति, जागो फाउंडेशन से श्री सरोजित कुमार, श्री विरेन्द्र वर्मा, कैलाश सत्यार्थी चिल्ड्रन फाउंडेशन से श्री सुरेश पंडित, चाइल्डलाइन से श्री मुकेश कुमार, नरेश कुमार यादव, पीएलवी श्री कामेश्वर कुमार, श्रीमती जिलानी बानो एवम विभिन्न प्रखंडों से आई बालिकाएं उपस्थित थे।

गिरिडीह:प्रेमी से व्हाट्सएप चैट करते हुए युवती की मौत,परिजनों ने एक युवक व उसके मित्रों पर लगाया हत्या का आरोप

गिरिडीह:अपने प्रेमी से व्हाट्सएप पर चैट करते हुए प्रेमिका ने अपनी इहलीला समाप्त कर ली।शव के पास मोबाइल मिलने की बात कही जा रही है।

जिले में तिसरी थाना क्षेत्र अंतर्गत भंडारी गांव में एक 18 वर्षीय युवती की संदेहास्पद स्थिति में मौत हो गई है। युवती का शव फंदे पर झूलता हुआ मिला है। मृतका भंडारी गांव की सपना कुमारी बताई जा रही है। घटना बीते शनिवार के रात की बताई जा रही है। मामले को लेकर मृतका के परिजनों ने पड़ोस के गांव के सचिन नामक युवक पर हत्या करने का आरोप लगाया है। 

प्राप्त जानकारी के अनुसार सपना अपने पुराने घर में सो रही थी। जबकि उसके माता और पिता नए घर में सोए हुए थे। माता पिता जब पुराने घर गए तो देखा कि उनकी बेटी फंदे पर लटकी हुई है। खबर सुनकर भारी संख्या में ग्रामीण उसके घर के पास पहुंचे। किसी ने पुलिस को इसकी खबर दी।

सूचना मिलने पर तिसरी पुलिस भंडारी गांव पहुंची और शव को अपने कब्जे में लेकर जांच में जुट गई है। इधर मृतका के माता और पिता ने भंडारी पंचायत के गादी गांव के निवासी सचिन पर अपनी बेटी की हत्या करने का आरोप लगाया है। इस बाबत मृतका की मां ने तिसरी थाना में लिखित आवेदन देकर पड़ोस गांव के युवक सचिन और उसके दोस्तों पर हत्या का आरोप लगाया है। घटना के बाद मृतका की मां व अन्य परिजनों का रो रोकर बुरा हाल है। पीड़ित परिवार ने पुलिस से न्याय दिलाने की गुहार लगाई है। पुलिस मामले की जांच में जुटी हुई है।

वहीं बताया जा रहा है कि मृतका ने फांसी लगाने के पूर्व मोबाइल पर गादी निवासी सचिन यादव से काफी देर तक वाट्सअप में चैट कर रही थी। संभावना जताई जा रही है कि प्रेमी को अंदाजा था प्रेमिका नाराज है और आत्महत्या कर सकती है। लगातार फोन पर प्रेमी सचिन और दो अन्य लोगों का फोन आ रहा था लेकिन छात्रा ने बात नहीं की और आत्महत्या कर ली।

गिरिडीह:प्रेमी से व्हाट्सएप चैट करते हुए युवती की मौत,परिजनों ने एक युवक व उसके मित्रों पर लगाया हत्या का आरोप


गिरिडीह:अपने प्रेमी से व्हाट्सएप पर चैट करते हुए प्रेमिका ने अपनी इहलीला समाप्त कर ली।शव के पास मोबाइल मिलने की बात कही जा रही है।

जिले में तिसरी थाना क्षेत्र अंतर्गत भंडारी गांव में एक 18 वर्षीय युवती की संदेहास्पद स्थिति में मौत हो गई है। युवती का शव फंदे पर झूलता हुआ मिला है। मृतका भंडारी गांव की सपना कुमारी बताई जा रही है। घटना बीते शनिवार के रात की बताई जा रही है। मामले को लेकर मृतका के परिजनों ने पड़ोस के गांव के सचिन नामक युवक पर हत्या करने का आरोप लगाया है। 

प्राप्त जानकारी के अनुसार सपना अपने पुराने घर में सो रही थी। जबकि उसके माता और पिता नए घर में सोए हुए थे। माता पिता जब पुराने घर गए तो देखा कि उनकी बेटी फंदे पर लटकी हुई है। खबर सुनकर भारी संख्या में ग्रामीण उसके घर के पास पहुंचे। किसी ने पुलिस को इसकी खबर दी।

सूचना मिलने पर तिसरी पुलिस भंडारी गांव पहुंची और शव को अपने कब्जे में लेकर जांच में जुट गई है। इधर मृतका के माता और पिता ने भंडारी पंचायत के गादी गांव के निवासी सचिन पर अपनी बेटी की हत्या करने का आरोप लगाया है। इस बाबत मृतका की मां ने तिसरी थाना में लिखित आवेदन देकर पड़ोस गांव के युवक सचिन और उसके दोस्तों पर हत्या का आरोप लगाया है। घटना के बाद मृतका की मां व अन्य परिजनों का रो रोकर बुरा हाल है। पीड़ित परिवार ने पुलिस से न्याय दिलाने की गुहार लगाई है। पुलिस मामले की जांच में जुटी हुई है।

वहीं बताया जा रहा है कि मृतका ने फांसी लगाने के पूर्व मोबाइल पर गादी निवासी सचिन यादव से काफी देर तक वाट्सअप में चैट कर रही थी। संभावना जताई जा रही है कि प्रेमी को अंदाजा था प्रेमिका नाराज है और आत्महत्या कर सकती है। लगातार फोन पर प्रेमी सचिन और दो अन्य लोगों का फोन आ रहा था लेकिन छात्रा ने बात नहीं की और आत्महत्या कर ली।

गिरिडीह:टनल के अंदर गिरिडीह के भी 2 मजदूर शामिल


गिरिडीह:उत्तराखंड टनल हादसे में झारखंड के जहां मजदूरों के फंसे होने की बात बताई जा रही है।उनमें गिरिडीह से भी दो मजदूर शामिल हैं।

दोनों मजदूर जिले के बिरनी थाना क्षेत्र के रहने वाले हैं। दोनों एक-दूसरे के रिश्तेदार हैं।वहां फंसे मजदूरों में सिमराढाब के सुबोध कुमार वर्मा और केसोडीह के विश्वजीत कुमार वर्मा शामिल हैं।

बिरनी प्रखण्ड के केशोडीह पंचायत के मुखिया केके वर्मा ने मजदूरों के सुरंग में फंसे होने की पुष्टि की।उन्होंने बताया कि मामले की जानकारी मिलने के बाद उन्होंने सुरंग में फंसे विश्वजीत कुमार वर्मा के चचेरे भाई जगत महतो से बात की और उन्होंने दो मजदूरों के वहां फंसे होने की जानकारी दी। 

इधर सुरंग में मजदूरों के फंसे होने की खबर सुनकर परिजन चिंतित हैं।परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल हो गया है।परिजन मजदूरों की सलामती की प्रार्थना कर रहे हैं।

गिरिडीह:झोपड़ी में पड़ा मिला मृत वृद्ध का शव,पुलिस ने कराया अंतिम संस्कार

गिरिडीह:शहर के मकतपुर सतगलिया अवस्थित एक झोपडी में कई दिनों से एक वृद्ध का शव पड़ा हुआ था। जबकि आसपास के लोगों को इसकी किसी भी तरह की भनक भी नहीं लगी। 

मिली जानकारी के अनुसार 70 वर्षीय वृद्ध ललन सिन्हा की मौत कुछ दिन पहले ही हो गयी थी।जबकि पत्नी बेसुध पड़ी थी। आसपास के लोगों को जब शव से फैलते दुर्गन्ध का आभास हुआ तो पड़ोसियों ने नगर थाना को सूचना दी गयी। जिसके बाद सूचना मिलने पर नगर थाना प्रभारी भिखारी राम पुलिस बल के साथ घटनास्थल पर पहुंचे।जिसके बाद मृत वृद्ध के शव को अपने कब्जे में लेकर उसका अंतिम संस्कार कराया।साथ ही महिला को ओल्ड ऐज होम में भर्ती करवाया गया।

गिरिडीह:बाजार में खरीददारी करने पहुंची सीएसपी संचालिका की बैग से ₹70,000 नकद उचक्कों ने उड़ा लिए


गिरिडीह:पर्व त्यौहार के मौके पर असामाजिक तत्व भी काफी सक्रिय हो जाते हैं।यदि व्यक्ति जरा भी चूक जाएं,तो यह भीड़ भाड़ अथवा लोगों की असावधानी का फायदा उठा ले जाते हैं।एक ऐसी ही घटना गिरिडीह से सामने आई है।घटना शनिवार की बताई जा रही है।

दीपावली के लिए जिले के बेंगाबाद बाजार में बाजार करने आई एक सीएसपी संचालिका के बैग में रखे 70 हजार रुपये नकद उच्चकों ने उड़ा लिया।महिला शनिवार को बेंगाबाद बाजार में लगे साप्ताहिक हाट आई हुई थी। महिला ने अपने बैग के अंदर छोटे पर्स में 70 हजार रुपये रखा था। 

बाजार में खरीदारी करने के क्रम में उच्चकों ने उसके बैग का चैन खोलकर अंदर रखे रुपयों से भरा पर्स निकाल लिया और रफ्फू चक्कर हो गए।सामान खरीदने के बाद जब महिला ने पैसे निकालने के लिए बैग में हाथ डाला तो उसके होश उड़ गए।बैग के अंदर से उसका पर्स गायब था। घटना शनिवार शाम की है।

पीड़ित महिला लक्ष्मी देवी ने बेंगाबाद थाना क्षेत्र के महुआर स्थित बोरोटांड़ की रहने वाली है।वह यूनियन बैंक ऑफ इंडिया में बैंक सखी के रूप में काम करती है। साथ ही महुआर में सीएसपी का संचालन करती है. पीड़िता ने बताया कि उसने बैग में 70 हजार रुपये रखे हुए थे।रुपयों के अलावे उसके बैग में आधार कार्ड समेत अन्य जरूरी दस्तावेज भी थे।घटना की सूचना आज पुलिस को दिए जाने की बात बताई जा रही है।

गिरिडीह:डीसी ऑफिस कैंपस में अपनी पुश्तैनी जमीन के मुआवजे की मांग को ले ढाई महीने से धरना पर बैठा है एक दंपति


गिरिडीह:गिरिडीह में एक दंपति पिछले ढाई महीने से डीसी ऑफिस के कैंपस में धरने पर बैठा है।शनिवार को उन्होंने अपनी व्यथा बताई।

बताया जाता है कि जिले में गांवा थाना क्षेत्र के पीहरा मालडा के दिनेश मंडल एवं उनकी पत्नी समेत परिवार के लोग गिरिडीह के डीसी ऑफिस में पिछले ढाई महीने से धरना पर बैठे हुए हैं। दिनेश मंडल का कहना है गिरिडीह से कोडरमा रेल मार्ग बनने के क्रम में गिरिडीह ओवरब्रिज के पास उनकी पुश्तैनी जमीन रेलवे के द्वारा अधिग्रहण कर ली गई थी। जिसकी ऐवाज में उनको 2 करोड रुपए मुआवजा के तौर पर मिलना था,लेकिन सालों बीत जाने के बाद भी अभी तक मुआवजा नहीं मिला है। 

उन्होंने इसकी शिकायत रेल मंत्रालय से भी किया। कहा कि उनका मुआवजा अब गिरिडीह को डीसी ऑफिस में पडा हुआ है, लेकिन अधिकारियों की लापरवाही के कारण अभी तक उनके मुआवजे की राशि नहीं प्राप्त हुई है।

गिरिडीह:युवा कांग्रेस नेता रोहित कु ठाकुर ने डुमरी रेफरल अस्पताल प्रबंधन पर लगाया आरोप,एसडीएम को सौंपा आवेदन

गिरिडीह:भारतीय युवा कांग्रेस डुमरी विधानसभा सचिव रोहित कुमार ठाकुर ने शनिवार को एसडीम डुमरी को आवेदन देकर रेफरल अस्पताल मे गर्भवती महिला को कोई सुविधा नही मिलने तथा अस्पताल प्रभारी को फोन करने के बाद अस्पताल प्रभारी के द्वारा अपशब्द बोलने तथा अभद्र भाषा का प्रयोग करने का आरोप लगाया है।

एसडीएम को दिए आवेदन में लिखा कि 9 नवम्बर को रात 7:30 बजे एक गर्भवती महिला को लेकर के डुमरी रेफरल अस्पताल पहुंचे, लेकिन अस्पताल में एक भी नर्स व डॉक्टर मौजूद नहीं थे,केवल एक महिला थी जो रजिस्टर मेन्टेन करती थी।लिखा कि उनके द्वारा बार बार पूछे जाने पर उपस्थित महिला बोली कि आप प्रभारी से बात कर लिजिए।

लिखा कि जब दो घंटे बीत जाने पर करीबन 9:30 बजे जब प्रभारी को मैनें फोन किया तो प्रभारी बोले तुम कौन है फोन करने वाला।तब उन्होंने कहा कि सर, यहां एक गर्भवती महिला की जान जा रही है और आपके अस्पताल में एक नर्स तक नही है,उसके बाद प्रभारी धमकाते हुए तथा अभद्र भाषा का प्रयोग करते हुए कहने लगे कि तुम अपना गर्भवती महिला को लेकर के निकल जाओ और तुमको कोई सुविधा नहीं दी जायेगी,तुमको जो करना है कर लो,इस तरह से आठ से दस घंटे बीत जाने पर गर्भवती महिला की तबियत और भी बिगडने लगी उसके बाद 10 नवंबर को सुबह 8 बजे रेफर कागज बना करके मुझे दे दिया गया और बोला मां और बच्चे दोनों की स्थिति खराब है।

उसके बाद रेफरल प्रभारी को दुबारा फोन किये तो प्रभारी ने धमकी देते हुए कहा,कि तुमको जो करना है, कर लो।आगे आवेदन में लिखा कि इस तरह का वक्तव्य एक डॉक्टर के लिए अच्छी बात नहीं है अतः इसकी जांच करते हुए दोषी डॉक्टर पर उचित कार्रवाई करने की कृपा करें।इधर अस्पताल के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी ने बताया कि दलों के नाम पर लोग बदतमीजी से बात करते हैं।