उत्तरप्रदेश मिक्स मार्शल आर्ट एसोसिएशन की ओर से छठ वाँ नेशनल चैंपियनशिप का आयोजन 18 मई से


सरायकेला : उत्तरप्रदेश मिक्स मार्शल आर्ट एसोसिएशन की ओर से उत्तर प्रदेश में छठ वाँ नेशनल चैंपियनशिप का आयोजन 18 मई से होने वाली है ।

जिसमें झारखंड से 6 खिलाड़ी अपना जलवा दिखाएंगे जिसको लेकर मार्शल आर्ट फेडरेशन झारखंड ने पूरी तैयारी कर ली है। 

MMA एक ऐसा गेम है जिसमें कराटे, जूडो,बॉक्सिंग और मार्शल सभी तरह के हथकंडे सामने वाले को पस्त करने के लिए इस्तेमाल किया जाता है। जिसकी ट्रेनिंग के लिए देश के विभिन्न प्रदेशों के अलावे झारखंड में भी मिक्स मार्शल आर्ट फेडरेशन झारखंड का गठन किया गया है । जिसमें निपुण हुए झारखंड से 6 खिलाड़ी उत्तर प्रदेश MMA. एसोसिएशन के तत्वाधान में लखनऊ में होने वाले चार दिवसीय नेशनल चैंपियनशिप में भाग लेंगे यह प्रतियोगिता 18 मई से 21 मई तक आयोजित होगी.

 जिसमें 400 से ज्यादा प्रतिभागी भाग लेंगे जिसमे यूथ,जूनियर और सीनियर खिलाड़ी अलग अलग वेट वर्ग में खेलेंगे झारखंड से भाग लेने वाले खिलाड़ियों में से चार पूर्वी सिंहभूम जिले के 4 , चाईबासा से 1 और रांची के एक खिलाड़ी हैं।

नेशनल चैंपियनशिप ने विजेता व खिलाड़ियों को 2023 में आयोजित होने वाले विश्व और एशियन चैंपियनशिप में भाग लेने का मौका मिलेगा , झारखंड फेडरेशन ने आशा जताई है कि पिछली बार चैंपियनशिप में झारखंड 10 वें स्थान पर था । लेकिन इस बार तीसरे से पांचवें स्थान पाने में कामयाब होंगे ।

न्यूज़ अपडेट: पेड़ के नीचे सुखलाल पहाड़िया की इलाज के बाद इस क्षेत्र में आदिम जनजातियों के लिए जरूरी है एक स्वास्थ्य उप केंद्र की

 सरायकेला जिला के चांडिल अनुमंडल के आसनवनी पंचायत  स्थित दलना जंगल की तराई बसे खड़िया बस्ती के आदिम जनजाति समुदाय के 45 वर्षीय सुखलाल पहाड़िया की इलाज एक पेड़ के नीचे ग्रामीण चिकित्सक को करना पड़ा।इस खबर से जहां झारखंड के ग्रामीण इलाके के आदिम जाति के स्थिति का अंदाज़ा लगाया जा सकता है वहीं झारखंड के कई इलाकों में स्वास्थ्य की बदहाली क्या है इसका भी खुलासा हुआ।वैसे यह न्यूज़ इस क्षेत्र में चर्चा का विषय हुआ।वैसे पहाड़िया जनजाति की समुचित चिकित्सा सुविधा उपलब्ध नही हो पाने के कारण लगातार इनकी जनसंख्यां घटती जा रही है।इसके वाबजूद इन्हें इलाज़ नही मिल पाना और मृत्यु दर बढ़ना भी उनके जंसख्यां कम होना एक वजह हो सकता है।

 इस खबर के बाद जो बातें सामने आई उसके अनुसार तबियत बिगड़ी जिसे देखते हुए ,परिवार के लोग में परेशानी बढ़ गयी, उसे उपस्वास्थ्य केंद्र बिरिगोड़ा एन एच 33 हाईवे स्थित भवन ले जाया गया जहां कोई सरकारी चिकित्सक नही मिले एवं एएनएम नर्स भी उपस्थित नही रहते। 

इस बंद पड़े ही स्वास्थ्य केंद्र ईश्वर की भोरोसे चल रहा है। वर्षो से कोई सरकारी डॉक्टर यहां नही रहते है। जिसके कारण पहाड़िया का इलाज महूआ पेड़ के नीचे ग्रामीण चिकित्सक, डॉ० सत्यनारायण मुर्मू ने निजी स्तर पर लोगों का इलाज करते हैं।

एक तरफ भीषण गर्मी दूसरी ओर  गरीबी और लाचार को देखते हुए चांडिल सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के लिए 20 किलोमीटर दूरी जाना पड़ेगा ना घर में रुपया रहता और ना कोई साधन, फिर इलाज़ कैसे हो पायेगा।

इस लिए इस क्षेत्र में एक उप स्वास्थ्य केंद्र की जरूरत है।तभी सरकारी स्वास्थ्य केंद्र में ईलाज हो पायेगा । समय पर ग्रामीण ,आर एम पी ,चिकित्सक के बल ही गांव के लोगो जिंदा रहने को विवश हैं। सरकारी सुविधा नकारा देखा गया । करोड़ों रुपया का उपस्वास्थ्य केंद्र बनाया गया मगर ड्राक्टर की कमी नजर आए । स्वास्थ्य केंद्र दिन में खुला रहना चाहिए ।गरीब ग्रामीण कहा जायेगा ।

 चांडिल प्रखण्ड अंतर्गत आसनबनी पंचायत के पहाड़धार के (पिटीजीवी ) के आदिम जनजाति समुदाय के सुखलाल पहाड़िया ने गरीबी की लाचार को देखते हुए । कुछ दिन पूर्व इन परिवार के लोगो को चेचक बीमारी के चपेट आए थे उसके बाद तावियत बिगड़ गया था । ग्रामीण चिकित्सक द्वारा समय पर ईलाज करने पर स्वास्थ्य लाभ मिला।

आज भी गांव के गरीब असहाय लोगों ग्रामीण चिकित्सक के बल पर ही जिंदा है। गांव में बेहतर स्वास्थ्य बहाल में ग्रामीण चिकित्सक का भुमिका अहम है। सरकार इन लोगों को समय समय प्रशिक्षण दीया जाये सरकारी अपेक्षा यह लोगो खारा उतरेगा ।

 इनकी सेवा ली जाए तो ,एन आर एच एम भुमिका और बेहतर होगी। सुकलाल पहरिया विगत एक सप्ताह से बीमार रहने लगा , आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं होने के कारण गांव के ग्रामीण चिकित्सक से ही अपना उपचार कराया , वर्तमान मे सुकलाल पहरिया ठीक है। एक तरफ केंद्र सरकार दूसरी ओर राज्य सरकार द्वारा विभिन्न जगह पर उप स्वास्थ्य केंद्र बनाया गया ।लेकिन ड्रक्टरो की नजर आए । आज आदिम जनजाति के लोग विलुप्त होने की कगार पर । सरकार की प्रयास की क्वी नजर आए ।दूसरी ओर कुछ पदाधिकारी की अनदेखी के कारण यह परिवार विलुप्त की कगार पर पहुंचे हे।आज भी दिन दयाल आवास पर रहने पर मजबूर हे। दलमा सेंचुरी जंगल पर इन परिवार आपने आपने जीवन निर्भर करते देखा गया ।

आसनबनी पंचायत के लकड़ाडीह पहाड़ियां के सात परिवार अलग अलग बसबास करते हैं। ओर जंगल से पत्ता , कंद मूल ,दांतुन, सूखे लड़की आदि लाकर ,क्षेत्रीय मार्केट में बेच कर अपना जीवन बसर करते हैं 

इन सभी की आज भी स्वास्थ्य सेवा ग्रामीण डॉक्टर पर निर्भर है।इस लिए इस क्षेत्र में एक स्वास्थ्य उपकेंद्र की जरूरत है ताकि इन सभी का इलाज हो सके।

सरायकेला:आदिवासी नेता सालखन मुरमू के खिलाफ प्रदर्शन

सरायकेला : - कोल्हान के आदिवासी सेगल अभियान के प्रमुख सालखन मुर्मू के खिलाफ मानकी मुंडा समाज के लोगों ने मोर्चा खोल दिया है। उधर मानकी मुंडा समाज के लोग आज पूर्वी सिंहभूम उपायुक्त कार्यालय पहुंचकर सालखन मुर्मू के खिलाफ प्रदर्शन करते हुए सालखन मुर्मू पर आदिवासी और मानकी मुंडा आदिवासी के बीच लड़ाने का आरोप लगाया है। 

उन्होंने कहा है कि साल खान मुर्मू मानकी मुंडा को प्रमाण पत्र देने वाला कौन होता है वह खुद उड़ीसा के मयूरभंज का रहने वाला है वह खुद बाहरी है। और झारखंड में आकर कभी भाषा के नाम पर तो कभी स्थानीय नीति के नाम पर तो कभी मान की मुंडा और समाज के नाम पर समाज को तोड़ना चाहता है। 

ऐसे में जिला प्रशासन से इन लोगों ने मांग की है सालखन मुर्मू के खिलाफ अविलंब कार्रवाई कर उसे गिरफ्तार करें ताकि समाज में विद्वेष फैल रहा है उसे रोका जा सके।

सरायकेला:आराहासा पंचायत के पाटुंगा गांव में स्थित मोबाइल टावर को नक्सलियों ने किया क्षतिग्रस्त

चाईबासा:- कोल्हान के पश्चिम सिंहभूम जिले के गोइलकेरा थाना क्षेत्र अंतर्गत आराहासा पंचायत के पाटुंगा गांव में स्थित मोबाइल टावर को नक्सलियों ने क्षतिग्रस्त कर दिया है । घटना मंगलवार की शाम की बताई जा रही है ।

नक्सल प्रभावित क्षेत्र होने के कारण पुलिस टीम अब तक नही पहुंची है. लेकिन जानकारी मिलने के बाद पुलिस जवान घटना स्थल के लिए रवाना हो गए हैं । अभी तक यह स्पष्ट नहीं हो सका है कि नक्सलियों ने मोबाईल टावर को किस तरह से क्षतिग्रस्त किया है।नक्सलियों ने मोबाईल टावर को बम धमाके से विस्फोट कर उड़ाया है या आग के हवाले कर क्षतिग्रस्त किया है ।

जिले में नक्सलियों के हार्डकोर और शीर्ष नेताओं के भ्रमणशील होने की जानकारी झारखंड पुलिस को मिली थी. जिसके बाद से नक्सलियों के धड़ पकड़ और खात्मे के लिए लगातार अभियान चलाया जा रहा है।इसी क्रम में नक्सलियों ने पुलिस जवानों को नुकसान पहुंचाने के लिए जंगलों में कई आईईडी विस्फोटक लगाए हैं ।

प्रतिबंधित भाकपा माओवादी नक्सली संगठन के शीर्ष नेता मिसिर बेसरा, अनमोल, मोछु, चमन, कांडे, अजय महतो, सागेन अंगरिया, अश्विन अपने दस्ता सदस्यों के साथ कोल्हान क्षेत्र में विध्वंसक गतिविधि के लिए भ्रमणशील होने की आसूचना मिली थी है ।

इस सूचना के सत्यापन करने के लिए 11 जनवरी से लगातार सर्च ऑपरेशन चलाया जा रहा है। इस सर्च ऑपरेशन में चाईबासा पुलिस, कोबरा 209 बटालियन, 203 बटालियन, 205 बटालियन, झारखण्ड जगुआर एवं सीआरपीएफ 60, 197, 157, 174, 193, 07 एवं सीआरपीएफ 26 बटालियन की टीमों का एक संयुक्त अभियान दल गठित कर लगातार ऑपरेशन चलाया जा रहा है।

पश्चिमी सिंहभूम जिले के पुलिस अधीक्षक आशुतोष शेखर ने बताया कि मोबाईल टावर को क्षतिग्रस्त करने की सूचना मिली है। पुलिस टीम फहतन स्थल के लिए रवाना हुई है, लेकिन जब तक पुलिस टीम घटनास्थल पर नहीं पहुंच जाती तब तक यह कहना जल्दबाजी होगी कि नक्सलियों ने मोबाइल टावर को विस्फोटक से उड़ाया है या आग लगाकर क्षतिग्रस्त किया है ,यह देखने के बाद ही स्पष्ट हो पाएगा।

सुदूरवर्ती ग्रामीण क्षेत्रों में आदिम जनजाति ग्रामीण चिकित्सक के सहारे जीने को मजबूर


बीमार अगर किसी अस्पताल नही जा पाते तो ये ग्रामीण चिकित्सक पेड़ के नीचे करते हैं इनका इलाज़

सरायकेला : अभी भी झारखंड के सुदूरवर्ती ग्रामीण क्षेत्रों में चिकित्सा व्यवस्था कितनी मज़बूत हो पायी इसका उदाहरण

जिला के चांडिल अनुमंडल के आसनवनी पंचायत स्थित दलना जंगल की तराई बसे खड़िया बस्ती में देखने को मिला।

यहां  आदिम जनजाति सुखलाल पहाड़िया की तबियत बिगड़ी जिसे देखते हुए अस्पताल जाने का मौका नही मिला तो महूआ पेड़ के नीचे हीं चिकित्सक, डॉ,एस,एन मुर्मू ने चिकित्सा की। 

एक तरफ भीषण गर्मी दूसरी ओर  गरीबी और लाचार को देखते हुए।

सरकारी स्वास्थ्य केंद्र के अपेक्षा ग्रामीण आर एम पी चिकित्सक के सहयोग से गांव के लोग जिंदा रहने के लिए संघर्ष करते हैं।

जानकारी के अनुसार।चांडिल चांडिल अनुमंडल के चांडिल प्रखण्ड अंतर्गत आसनबनी निवासी आदिम जनजाति सुकलाल पहरिया ने ग्रामीण चिकित्सक के बल पर स्वास्थ्य लाभ लिया।आज भी गांव गरीब असहाय लोगों ग्रामीण चिकित्सक के बल पर ही जिंदा है। गांव में बेहतर स्वास्थ्य बहाल में ग्रामीण चिकित्सक का भुमिका अहम है। 

 सुकलाल।पहाड़िया विगत एक सप्ताह से बीमार रहने लगा ।

 आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं होने के कारण गांव के ग्रामीण चिकित्सक से ही अपना उपचार कराया वर्तमान में सुकलाल पहाड़िया ठीक है।

एक तरफ केंद्र सरकार दूसरी ओर राज्य सरकार द्वारा आदिम जनजाति के लोगो को विलुप्त होने से बचने की प्रयास कर रहे दूसरी ओर कुछ पदाधिकारी के कारण यह परिवार विलुप्त की कगार पर हे। दलमा जंगल पर इन परिवार आपने आपने जीवन निर्भर देखा गया ।

सरायकेला:परिसदन सभागार में झारखंड विधानसभा की पुस्तकालय विकास समिति की बैठक सम्पन्न

सरायकेला :- जिला मुख्यालय शहर सरायकेला स्थित परिसदन सभागार में झारखंड विधानसभा की पुस्तकालय विकास समिति की सभापति श्रीमती अर्पणा सेन गुप्ता(वि.स.स- निरसा) के अध्यक्षता में समीक्षा बैठक का आयोजन किया गया। 

बैठक में मुख्य रूप से समिति सदस्य श्री ढुल्लू महतो, उपायुक्त श्री अरवा राजकमल, उप विकास आयुक्त श्री प्रवीण कुमार गागराई एवं विभिन्न विभाग के वरीय पदाधिकारी उपस्थित रहे। बैठक के दौरान सभापति श्रीमती अर्पणा सेन गुप्ता के द्वारा क्रमवार पुस्तकालय विकास समिति सहित अन्य विभागों से संचालित योजनाओं की भी जानकारी प्राप्त की गई है।

पुस्तकालय विकास समिति की समीक्षा के दौरान सभी विद्यालयों में पुस्तकालय की उपलब्धता, वहां पर किताबों का समायोजन, पठन-पाठन हेतु उपलब्ध सुविधा, पेयजल, किताब के प्रति बच्चों की रुचि, भवन की उपलब्धता आदि की जानकारी ले आवश्यक दिशा निर्देश दिए गए।

 समीक्षा क्रम में उन्होंने सभापति श्रीमती अर्पणा सेन गुप्ता एवं सदस्य श्री ढुल्लू महतो नें विभिन्न अंचल कार्यालय में म्यूटेशन एवं अन्य कार्यों हेतु आ रहे लोगो को यथासंभव सहयोग प्रदान करने, प्रत्येक सप्ताह में एक दिन भूमि विवाद निस्तारण दिवस मनाने के निदेश दिए वही जनसंपर्क विभाग द्वारा ग्रामीण क्षेत्रों में विभिन्न योजनाओं, महिला सशक्तिकरण डायन कुप्रथा समेत अन्य बिंदुओं पर ग्रामीण क्षेत्रों में व्यापक प्रचार प्रसार कर लोगो को जागरूक करने के निदेश दिए। समीक्षा क्रम में सभापति महोदय के द्वारा जल नल योजना अंतर्गत सभी विद्यालय एवं आंगनबाड़ी केंद्रों में पेयजल की व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए।

उक्त बैठक में उपरोक्त के अलावा परियोजना निदेशक आईटीडीए श्री संदीप कुमार दुराईबुरु, अपर उपायुक्त श्री सुबोध कुमार, जिला भू अर्जन पदाधिकारी श्रीमती सरोज तिर्की, जिला शिक्षा पदाधिकारी, सिविल सर्जन समेत अन्य सम्बन्धित विभाग के पदाधिकारी एवं विभिन्न कार्यकारी विभाग के कार्यपालक अभियंता उपस्थित रहे।

सरायकेला:अपराधियों की धरपकड़ को लेकर थाना प्रभारी खुद सड़क पर उतर कर,कर रहे है गहन चेकिंग


सरायकेला :- जिला के आदित्यपुर थाना अपराधियों की धरपकड़ को लेकर काफी सतर्क है ।वैसे थाना प्रभारी खुद सड़क पर उतर गहन चेकिंग कर रहे हैं ।

आपको बता दें कि सरायकेला और जमशेदपुर जेल से लगभग 3 दर्जन से ज्यादा कुख्यात अपराधी को बेल हुई है। उधर जेल से छूटने के बाद अपराधी बड़े घटना को अंजाम दे सकता हैं ।इन्हीं अपराधियों पर नकेल कसने को लेकर सरायकेला और जमशेदपुर पुलिस अलर्ट है।

आदित्यपुर थाना प्रभारी का कहना है कि डीआईजी के निर्देश पर यह चेकिंग की जा रही है। ताकि लोग सुकून से रह सके। हालांकि जब से आदित्यपुर थाना प्रभारी की जिम्मेदारी इनको मिली है तब से अपराध पर लगाम लगा हैं। कारण यह ऐसे थाना प्रभारी जो हर वक्त क्षेत्र में दिखते हैं यही कारण है कि अपराधियों का मनोबल टूटा है।

सरायकेला:कोल्हान के पूर्वी सिंहभूम जिले के पटमदा के लावा गांव के पास भीषण सड़क हादसे में दो युवक गंभीर रूप से घायल


सरायकेला :- कोल्हान के पूर्वी सिंहभूम जिले के पटमदा के पास लावा गांव के पास भीषण सड़क हादसे में दो युवक गंभीर रूप से घायल हो गए, घायल दोनों युवकों को एमजीएम अस्पताल में भर्ती कराया गया है जहां उनका इलाज चल रहा है।

लावा के पास भीषण सड़क हादसे में टाटा मैजिक ने पल्सर बाइक को सीधे टक्कर मार दी,जिसमे बाइक सवार दो व्यक्ति घटनास्थल पर गंभीर रूप से घायल हो गए ,स्थानीय लोगों ने उन्हें अस्पताल पहुंचाया।

मिली जानकारी के अनुसार दोनों युवक टाटानगर रेलवे स्टेशन के आसपास के रहने वाले हैं एक युवक बुधन टाटानगर रेलवे स्टेशन के बाहर चाय का स्टाल लगाता हूं तो दूसरा घायल युवक कल्लू टाटानगर रेलवे स्टेशन में पार्सल डिपार्ट में काम करता है ये सभी पल्सर बाइक से हाथी खेदा मंदिर से पूजा कर लौट रहे थे तभी लावा के पास टाटा मैजिक और इनकी पल्सर बाइक में जोरदार भिड़ंत हो गई जिसमें ये गंभीर रूप से घायल हो गए।

फिलहाल आनन-फानन में इन्हें एमजीएम अस्पताल में भर्ती कराया गया है जहां घायल कल्लू की स्थिति नाजुक बताई जा रही है ।

देश में पर्यावरण के प्रति जागरूकता फैलाने के उधेश्य से मैसूर से पद यात्रा करते हुए एक युवा जमशेदपुर पहुंचा


सरायकेला : देश भर मे योग एवं पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरूकता फैलाने हेतु कर्नाटक राज्य के मैसूर से एक युवा देश भर के पैदल यात्रा के लिए निकला हैं, लगभग पांच हजार किलोमीटर का पैदल सफर तय कर मंगलवार को वो जमशेदपुर पहँचा.

इस युवक का नाम कृष्णन्म नायक हैं और ये कर्नाटक राज्य का निवासी हैं, देश भर मे योग एवं पर्यावरण संरक्षण के प्रति प्रत्तेक व्यक्ति को जागरूक करने का लक्ष्य लेकर कृष्णन्म देश भर के यात्रा मे निकला हैं, पीठ पर भारत देश का तिरंगा झंडा लेकर यह यह देश की एकता का सन्देश भी लोगों को दे रहा हैं, अब तक कृष्णन्म ने आठ राज्यों का सफर तय कर लिया हैं और अब वह झारखण्ड पहँचा हैं, विगत वर्ष अक्टूबर के माह मे उसने यात्रा की शुरुवात की थी और कुल मिलाकर दो वर्षो मे कृष्णन्म 28 राज्यों का सफर तय कर वापस कर्नाटक राज्य पहूंचकर अपने यात्रा को समाप्त करेगा, कृष्णन्म के अनुसार योग से शरीर निरोग रहता हैं, और पर्यावरण संरक्षण मानवता के कल्याण के लिए आवश्यक हैं, और इसी को प्रत्येक देशवासी तक पहँचाने हेतु उसने इस कठिन यात्रा का मार्ग चुना ।

 कृष्णन्म अपने पुरे यात्रा के दौरान कुल 15 हजार किलोमीटर का सफर पैदल ही तय करेंगे ।

सराईकेला : सप्ताहिक जनता दरबार में जिले के विभिन्न क्षेत्र से आए फरियादियों से मिले उपायुक्त

सरायकेला : जिला दंडाधिकारी सह उपायुक्त सरायकेला खरसावां श्री अरवा राजकमल ने आज मंगलवार को कार्यालय प्रकोष्ठ में सप्ताकिक जनता दरबार का आयोजन किया। आज आयोजित जनता दरबार में जिले के विभिन्न क्षेत्रों से दर्जनों फरियादियों से क्रमवार मिल उनकी समस्याओं से अवगत हो उसके निष्पादन हेतु संबंधित विभागीय पदाधिकारी को आवश्यक दिशा निर्देश दिए। जनता दरबार में मुख्य रूप से आज भूमि विवाद, सीमांकन, भूमि विवाद, प्रधानमंत्री आवास योजना, विद्यालय सम्बन्धित मामले, कोरोना संक्रमण से मृतक आश्रित को सहायता योजना का लाभ प्रदान करने समेत अन्य समस्याओं को लेकर उपस्थित हुए ग्रामीणों की बारी-बारी से उपायुक्त ने समस्या सुन उसके यथाशीघ्र निराकरण करने हेतु संबंधित पदाधिकारियों को निदेशित किया।

साप्ताहिक जनता दरबार के दौरान विभिन्न विभाग से संबंधित समस्याओं के निराकरण हेतु क्षेत्रीय पदाधिकारियों से दूरभाष के माध्यम से वार्ता किया। इस क्रम में उपायुक्त ने कहा कि सभी विभागीय पदाधिकारी सप्ताह के प्रत्येक मंगलवार एवं शुक्रवार को कार्यालय में उपस्थित रह विभिन्न मामलों के निराकरण हेतु आ रहे फरियादियों से मिल उनके समस्याओं का निष्पादन सुनिश्चित करें ताकि अनावश्यक लोगों को विभिन्न कार्यालयों या जिला मुख्यालय का चक्कर न लगाना पड़े।