विहिप ने दिया अवर अभियंता के विरुद्ध सांकेतिक धरना एसडीओ द्वारा कार्रवाई के आश्वासन पर धरना स्थगित
आचार्य ओमप्रकाश वर्मा नगरा बलिया! विद्युत उपकेन्द्र के अवर अभियंता के खिलाफ विश्व हिंदू परिषद के कार्यकर्ताओं ने मंगलवार को एक दिवसीय सांकेतिक धरना दिया। कार्यकर्ताओं का आरोप है कि जेई विद्युत उपभोक्ताओं के साथ बदसलूकी कर रहे हैं और भ्रष्टाचार में लिप्त हैं। विहिप जिलाध्यक्ष राजीव कुमार सिंह चंदेल ने कहा कि अवर अभियंता सरकार को बदनाम करने के लिए लोगों का उत्पीड़न कर रहे हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा और विहिप कार्यकर्ताओं के साथ जेई का व्यवहार उचित नहीं है। भाजपा से जुड़े लोगों की बिजली बकाया बिल दिखाकर काट दी जा रही है।धरने के दौरान पहुंचे उप खंड अधिकारी ने कार्यकर्ताओं की शिकायतों को सुना। उन्होंने बताया कि इस मामले में अधीक्षण अभियंता बलिया से बात हुई है। जेई पर लगे आरोपों की जांच चल रही है और जांच के बाद कार्रवाई की जाएगी। विहिप जिलाध्यक्ष ने चेतावनी दी कि यह सिर्फ सांकेतिक प्रदर्शन है। अगर कार्रवाई नहीं हुई तो विहिप बड़ा आंदोलन करेगी। प्रदर्शन में अरविंद मिश्र, दीपक कुमार, शशि जायसवाल, रणधीर प्रसाद, विद्या सागर सिंह, अनूप वर्मा, तेज बहादुर सिंह, सतीश सोनी और सन्नी सिंह समेत कई कार्यकर्ता मौजूद थे।
बिहार में 'सेवा पखवाड़ा' के तहत 'चलो जीते हैं' सेवा रथ रवाना, बीजेपी नेताओं ने दिखाई हरी झंडी
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* पटना, 16 सितंबर - भाजपा के 'सेवा पखवाड़ा' के तहत आज पटना से 243 'चलो जीते हैं' सेवा रथों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया। इन रथों को प्रदेश अध्यक्ष डॉ. दिलीप जायसवाल, उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी और केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय समेत कई वरिष्ठ नेताओं ने ऐतिहासिक गांधी मैदान से रवाना किया। सेवा, समर्पण और संगठन का संदेश इस अवसर पर, प्रदेश अध्यक्ष डॉ. दिलीप जायसवाल ने कहा कि ये रथ पूरे बिहार में सेवा, समर्पण और संगठन के संदेश को घर-घर तक पहुंचाएंगे। उन्होंने बताया कि इन रथों के माध्यम से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जीवन पर आधारित फिल्म 'चलो जीते हैं' का प्रदर्शन सभी 243 विधानसभा क्षेत्रों में किया जाएगा। इसका उद्देश्य लोगों को पीएम मोदी के संघर्ष और संकल्प से प्रेरणा लेने के लिए प्रेरित करना है। उन्होंने जोर देकर कहा कि भाजपा का लक्ष्य समाज के अंतिम व्यक्ति तक सेवा और सकारात्मक बदलाव पहुंचाना है। गरीब का बेटा भी बन सकता है प्रधानमंत्री उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने कहा कि 'चलो जीते हैं' रथ यह प्रेरणा देगा कि एक गरीब का बेटा भी देश का प्रधानमंत्री बन सकता है। उन्होंने लोगों से इस भावना को घर-घर तक पहुंचाने का आह्वान किया। साथ ही, उन्होंने जीएसटी दरों को कम करने के लिए मोदी सरकार की सराहना की और सभी से 'श्रेष्ठ भारत' के निर्माण में योगदान देने का आग्रह किया। जनता तक पहुंचेंगे सेवा कार्य केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने बताया कि भाजपा हर साल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिन के अवसर पर 'सेवा पखवाड़ा' का आयोजन करती है। इसका मुख्य मकसद जनता तक सेवा कार्यों और केंद्र व राज्य सरकार की योजनाओं की जानकारी पहुंचाना है। उन्होंने कहा कि 'चलो जीते हैं' रथ भी इसी उद्देश्य को आगे बढ़ाएगा। इस कार्यक्रम में स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय, पथ निर्माण मंत्री नितिन नवीन और राष्ट्रीय मंत्री ऋतुराज सिन्हा समेत हजारों कार्यकर्ता और पदाधिकारी मौजूद रहे।
शादी का झांसा देकर यौन शोषण करने के आरोपी सिपाही को 2 साल कारावास की सजा

अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश द्वितीय संजय कुमार चौधरी की आदालत ने सुनाई सजा

25 0000 र जुर्माना भी लगाया


कोडरमा में शादी का झांसा देकर एक सिपाही, द्वारा अपने ही विभाग के महिला पुलिसकर्मी से दुष्कर्म (यौन शोषण) किए जाने के एक मामले St- 02 /2024 की सुनवाई करते हुए, अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश द्वितीय संजय कुमार चौधरी की अदालत ने आरोपी अभिमन्यु कुमार, 34 वर्ष, पिता अर्जुन प्रसाद थाना- मुफस्सिल, जिला- हजारीबाग निवासी को 493 आईपीसी के तहत तहत दोषी पाते हुए 2 वर्ष कारावास की सजा सुनाई। साथ ही ₹25000 जुर्माना लगाया। जुर्माना की राशि नहीं देने पर 2 माह अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी। मामला वर्ष 2018 का है । इसे लेकर भुक्तभोगी महिला पुलिसकर्मी ने कोडरमा महिला थाना मे मामला दर्ज कराया गया था। जिसमें उसने कहा था कि शादी का झांसा देकर अभिमन्यु कुमार ने उसके उसके साथ कई बार शारीरिक संबंध बनाया । जब मैंने कहा कि मैं शादीशुदा हूं उसके बावजूद उसने कहा कि मैं तुमसे शादी कर लूंगा और मेरे मना करने के बाद भी लगातार यौन शोषण करता रहा । शादी की बात करने पर वह इनकार कर दिया। अभियोजन का संचालक लोक अभियोजक प्रवीण कुमार सिंह ने किया। इस दौरान सभी गवाहों का परीक्षण कराया गया । कार्रवाई के दौरान अपराध की गंभीरता को देखते हुए लोक अभियोजक ने न्यायालय से अभियुक्त को अधिक से अधिक सजा देने का आग्रह किया। वहीं बचाव पक्ष की ओर से अधिवक्ता राजीव कुमार सिंह ने दलीलें पेश करते हुए बचाव किया। अदालत ने सभी गवाहों और साक्षयो का अवलोकन करने के उपरांत अभियुक्त को 493 आईपीसी के तहत के तहत दोषी पाते हुए 2 वर्ष कारावास की सजा मुकर्रर की और जुर्माना लगाया।
नगरा में सार्वजनिक रामलीला समिति का भव्य भूमि पूजन और ध्वजारोहण समारोह, रामलीला महोत्सव की तैयारियों का हुआ शुभारंभ
रामेश्वर प्रजापति  तहसील रसड़ा( नगरा) ! नगरा में मंगलवार को सार्वजनिक रामलीला समिति के द्वारा एक भव्य और प्रतिष्ठित कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसमें जनता इंटर कॉलेज परिसर में भूमि पूजन तथा ध्वजारोहण समारोह संपन्न हुआ। यह आयोजन रामलीला महोत्सव की तैयारियों का औपचारिक शुभारंभ था, जिसके लिए नगरवासी एवं आयोजन समिति दोनों ने विशेष उत्साह और श्रद्धा के साथ सहभागिता की। कार्यक्रम की शुरुआत वैदिक मंत्रोच्चारण के बीच पंडित संतोष कुमार द्विवेदी द्वारा विधिपूर्वक भूमि पूजन एवं पूजन-अर्चन से हुई, जिससे पूरे वातावरण में आध्यात्मिक उर्जा का संचार हो गया। इस अवसर पर प्रभु श्रीरामचंद्र और हनुमानजी की भक्तिपूर्ण स्तुति गूंज उठी, जिन्होंने समस्त उपस्थित जनों के हृदयों को भक्तिमय कर दिया। रामलीला समिति के अध्यक्ष राजेश गुप्ता दीपू ने सभी श्रद्धालुओं का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि यह कार्यक्रम न केवल धार्मिक विश्वास को मजबूत करेगा, बल्कि हमारे सांस्कृतिक विरासत को जीवंत रखने में भी सहायक होगा। चेयरमैन प्रतिनिधि उमाशंकर राम, पूर्व ब्लॉक प्रमुख निर्भय प्रकाश, महामंत्री आलोक शुक्ला, डॉ. समरजीत सिंह, राम दर्शन यादव, डॉ. शशि प्रकाश कुशवाहा, रामायण ठाकुर, शशि गुप्ता, उदय नारायण वर्मा, के.पी. यादव, प्रियांशु जायसवाल, जयप्रकाश जयसवाल, गणपति मुन्ना, रिंकू गुप्ता, बृजमोहन गुप्ता, राजू चौहान, अमरेंद्र सोनी और डॉ. डीएन प्रसाद सहित समिति के समस्त सदस्य इस भव्य आयोजन में मौजूद रहे। पूरे परिसर में "जय श्रीराम" और "जय हनुमान" के उद्घोषों से गूंज मची और माहौल भक्तिभाव से सराबोर हो गया। इस आयोजन ने न केवल नगरवासियों को आपस में जोड़ने का काम किया, बल्कि रामलीला के माध्यम से सामाजिक एकता और परंपराओं को सहेजने का संदेश भी दिया। रामलीला समिति का यह प्रयास नगरा के सांस्कृतिक जीवन को समृद्ध बनाने के साथ-साथ आगामी रामलीला महोत्सव के लिए मजबूत तैयारियों का संकेत है। समिति ने आशा व्यक्त की कि यह आयोजन नगरवासियों में धार्मिक एवं सामाजिक समरसता को और प्रगाढ़ करेगा तथा आने वाले समय में रामलीला महोत्सव का भव्य आयोजन किया जाएगा, जो सैकड़ों श्रद्धालुओं को आकर्षित करेगा। यह भूमि पूजन और ध्वजारोहण समारोह नगरा में आदर्श सांस्कृतिक परंपराओं को आगे बढ़ाने में एक महत्वपूर्ण पड़ाव साबित होगा, जिससे रामलीला समिति की सक्रियता और नगर की सांस्कृतिक धरोहर के संरक्षण को एक नई गति मिलेगी
. समरजीत सिंह बने शिक्षक एमएलसी चुनाव के बिल्थरारोड विधानसभा संयोजक, क्षेत्र में खुशी की लहर
राम ईश्वर प्रजापति नगरा बलिया! । भारतीय जनता पार्टी के द्वारा डा0 समरजीत सिंह को शिक्षक एमएलसी चुनाव का बिल्थरारोड विधानसभा संयोजक नियुक्त किया गया है। यह घोषणा होते ही क्षेत्र में हर्ष की लहर दौड़ गई। लोगों ने एक-दूसरे को मिठाई खिलाकर खुशी का इजहार किया और उन्हें ढेर सारी शुभकामनाएं दीं। इस अवसर पर सूर्य प्रताप सिंह शाही (मंडल अध्यक्ष), पंचम गुप्ता, धर्मराज सिंह, विकी, आशुतोष पांडे, कृष्ण पाल यादव, जयप्रकाश जयसवाल, दीपक, रामायण ठाकुर, संजय पांडे, कृष्ण कुमार कुशवाहा समेत अनेक सम्मानित लोगों ने उन्हें बधाई दी। डा. समरजीत सिंह ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी ने जो जिम्मेदारी उन्हें सौंपी है, उसे पूरी निष्ठा और ईमानदारी से निभाना उनका कर्तव्य होगा। उन्होंने कहा कि शिक्षक समाज की रीढ़ हैं और उनकी समस्याओं के समाधान के लिए वे हर संभव प्रयास करेंगे। संगठन को मजबूत बनाने के साथ-साथ शिक्षकों की आवाज़ को सदन तक पहुँचाना उनकी प्राथमिकता होगी। डा. सिंह ने विश्वास जताया कि सबके सहयोग से शिक्षक एमएलसी चुनाव में ऐतिहासिक सफलता प्राप्त होगी।
हिमाचल से उत्तराखंड तक तबाही का मंजर, देहरादून के सहस्रधारा में बादल फटा, मंडी में बारिश ने बरपाया कहर

#dehraduncloudburstfloodinmandi_dharampur

उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में एक बार फिर तबाही मची है। उत्तराखंड में लगातार बारिश अपना कहर बरपा रही है। देर रात देहरादून के सहस्रधारा क्षेत्र में बादल फटने से भारी तबाही मची है। वहीं मसूरी में देर रात भारी बारिश से मजदूरों के आवास के ऊपर मलबा आ गया। घटना में एक मजदूर की मौत हो गई और एक गंभीर रूप से घायल हो गया। इधर हिमाचल प्रदेश में एक बार फिर पहाड़ों पर आफत की बारिश आई है। मंडी जिले में मूसलधार बारिश ने हालात बिगाड़ दिए हैं। पिछले 24 घंटों से जारी तेज बारिश ने नदियों और नालों का जलस्तर अचानक बढ़ा दिया है। इस विपदा में 3 लोगों की मौत हो गई है।

करीब 100 लोग फंसे

सहस्रधारा क्षेत्र में सोमवार देर रात बादल फटा। स्थानीय लोगों के मुताबिक मुख्य बाजार में मलबा आने से दो से तीन बड़े होटल और कई दुकानें क्षतिग्रस्त हो गई हैं। कार्डीगाड़ के ग्राम प्रधान राकेश जवाड़ी ने अमर उजाला को बताया कि घटना रात करीब साढ़े 11 बजे की है। कार्डीगाड़ में बादल फटने के बाद मुख्य बाजार में बड़े पैमाने पर मलबा आ गया। इससे दो से तीन बड़े होटल क्षतिग्रस्त हो गए जबकि एक मार्केट में बनीं करीब 7 से 8 दुकानें ध्वस्त हो गईं। वहां पर करीब 100 लोग फंस गए थे जिन्हें गांव वालों ने सकुशल रेस्क्यू कर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया।

मसूरी में भी मलबा आने से मजदूर की मौत

दूसरी तरफ मसूरी में भी झड़ी पानी में एक मजदूर के आवास पर मलबा आ गया. घटना में एक मजदूर की मौत हो गई है और एक गंभीर रूप से घायल हो गया है। हादसे की सूचना मिलते ही पुलिस और स्थानीय लोग मौके पर पहुंच गई और घायल मजदूर को उपचार के लिए अस्पताल ले गए। शहर कोतवाल संतोष कुमार ने बताया कि बारिश का पानी और मलबा मजदूर के कच्चे आवास के ऊपर आ गया था। इससे एक मजदूर की मलबे में दबने से मौके पर ही मौत हो गई और एक मजदूर घायल हो गया है।

हिमाचल प्रदेश में आफत की बारिश

दूसरी तरफ हिमाचल प्रदेश में आफत की बारिश आई है। मंडी जिले में पिछले 24 घंटों से जारी तेज बारिश ने नदियों और नालों का जलस्तर अचानक बढ़ा दिया है। इस विपदा में 3 लोगों की मौत हो गई है। धर्मपुर में देखते ही देखते पानी का सैलाब बाजार और बस अड्डे में घुस गया। धर्मपुर बस अड्डा पूरी तरह जलमग्न हो गया है। वहां खड़ी कई बसें पानी में बह गईं। बाजार की दर्जनों दुकानें और स्टॉल भी बहाव की चपेट में आ गए। लोगों के घरों में घुटनों तक पानी भर गया और सारा सामान बर्बाद हो गया।

भीलवाड़ा में 'असली बेटे' का फर्ज: मुस्लिम युवक ने हिंदू 'मां' की चिता को दी मुखाग्नि

भीलवाड़ा, राजस्थान: आस्था और इंसानियत की एक ऐसी मिसाल सामने आई है, जिसने हर किसी की आंखें नम कर दी हैं. राजस्थान के भीलवाड़ा में 67 साल की एक हिंदू महिला की मौत पर उनके 42 वर्षीय मुस्लिम 'बेटे' ने हिंदू रीति-रिवाजों से चिता को मुखाग्नि दी. यह घटना दिखाती है कि रिश्ते धर्म या मजहब से परे होते हैं, और इंसानियत सबसे बड़ा धर्म है.

यह कहानी है 67 वर्षीय शांति देवी और 42 वर्षीय असगर अली की. जंगी मोहल्ले में छोटी सी दुकान चलाने वाले असगर अली ने शांति देवी के लिए वह सब किया, जो शायद एक सगा बेटा भी नहीं कर पाता. दोनों परिवारों का रिश्ता 30 साल पुराना था, जो समय के साथ गहराता गया. असगर अली ने बताया कि उनके माता-पिता और शांति देवी के माता-पिता मेलों में छोटी-मोटी दुकानें लगाते थे, जिससे वे एक-दूसरे को अच्छी तरह से जानते थे.

एक परिवार की तरह रहे असगर और शांति देवी

2010 में पति के देहांत के बाद शांति देवी अपने बेटे के साथ असगर अली के पड़ोस में आकर रहने लगीं. दोनों परिवार एक ही मकान में किराए पर रहते थे. 2017 में असगर के पिता की मौत के बाद शांति देवी ने उनकी मां का एक बहन की तरह साथ दिया. लेकिन, 2018 में एक दर्दनाक हादसे ने शांति देवी से उनके बेटे को छीन लिया. एक जंगली जानवर के हमले में उनके बेटे की मौत हो गई. इस दुख की घड़ी में असगर का परिवार उनका सहारा बना.

असगर अली ने बताया, "2018 के बाद से शांति मां हमारे ही साथ रहने लगीं. वो मुझे अपने बेटे की तरह प्यार करती थीं." असगर भी उन्हें 'मासी मां' कहकर बुलाते थे. दो साल पहले जब असगर की अपनी मां का निधन हुआ, तो शांति देवी ने उन्हें अकेला महसूस नहीं होने दिया. वह हर वक्त असगर की चिंता करतीं, उनके खाने-पीने और कपड़े धोने तक का ध्यान रखती थीं. असगर कहते हैं कि शायद उनकी अपनी मां ने भी उनका इतना ख्याल नहीं रखा, जितना शांति मां ने रखा.

"हर जन्म में मुझे ऐसी ही मां मिले"

असगर बताते हैं कि शांति मां के सम्मान में उन्होंने अपने घर में मांसाहार खाना और बनाना बंद कर दिया था. ईद और दिवाली भी दोनों परिवार साथ-साथ मनाते थे. कुछ समय से शांति देवी बीमार चल रही थीं, और हाल ही में उनका निधन हो गया. असगर ने बिना किसी हिचकिचाहट के हिंदू रीति-रिवाजों से उनकी चिता को मुखाग्नि दी. अब वह उनकी इच्छा के अनुसार उनकी अस्थियां प्रयागराज के त्रिवेणी संगम या चित्तौड़गढ़ के मातृकुंडिया में विसर्जित करेंगे.

आंखों में आंसू लिए असगर अली ने कहा, "मां के बिना अब मैं लावारिस और बिल्कुल अकेला हो गया हूं." उन्होंने भावुक होकर कहा, "दुआ है मुझे हर जन्म में ऐसी ही मां मिले."

यह कहानी भीलवाड़ा के लोगों और सोशल मीडिया पर खूब सराहना बटोर रही है, जो दिखाती है कि धर्म से बढ़कर इंसानियत और रिश्तों की भावना है.

उच्च शिक्षा के लक्ष्य की प्राप्ति में मुक्त विश्वविद्यालय की भूमिका महत्वपूर्ण-राज्यपाल।

मुक्त विश्वविद्यालय के दीक्षान्त समारोह में उमा यादव को मिला कुलाधिपति स्वर्ण पदक।

28 हजार से अधिक शिक्षार्थियों को मिली उपाधि।

संजय द्विवेदी प्रयागराज।उ0 प्र0 राजर्षि टण्डन मुक्त विश्वविद्यालय प्रयागराज का 20वां दीक्षान्त समारोह सोमवार को सरस्वती परिसर स्थित अटल प्रेक्षागृह में आयोजित किया गया।दीक्षान्त समारोह की अध्यक्षता उत्तर प्रदेश की राज्यपाल एवं कुलाधिपति आनंदीबेन पटेल ने की।राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने अध्यक्षीय उद्बोधन में कहा कि उच्च शिक्षा के लक्ष्य की प्राप्ति में मुक्त विश्वविद्यालय की भूमिका महत्वपूर्ण है।समाज के कम से कम 50% युवाओं की पहुंच उच्च शिक्षा तक होनी चाहिए।इसमें मुक्त विश्वविद्यालय को अतिरिक्त प्रयास करने की आवश्यकता है।विश्वविद्यालय यह कार्य अपने क्षेत्रीय केन्द्रो के माध्यम से पूरा कर सकता है।दूरस्थ शिक्षा की गुणवत्ता के लिए ऑनलाइन सुविधाओं का अधिक से अधिक उपयोग किया जाना चाहिए।इस अवसर पर राज्यपाल ने बिगड़ते पर्यावरण पर अपनी चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि पर्यावरण संरक्षण हमारी सामूहिक जिम्मेदारी है।उन्होंने इस अवसर पर उच्च प्राथमिक विद्यालय बेरुई के बच्चों द्वारा पर्यावरण संरक्षण पर दी गई प्रस्तुति की सराहना की। राज्यपाल पटेल ने महिलाओं में बढ़ते सरवाइकल कैंसर से बचाव हेतु एचपीवी वैक्सीनेशन की मुहिम के लिए जन सहभागिता की अपील की। राज्यपाल ने जोर देकर कहा कि उन्होंने प्रदेश की महिलाओं को कैंसर से बचाव के लिए जो मुहिम चलाई है उसमें प्रशासनिक अधिकारी अपना सहयोग प्रदान करें।मुख्य अतिथि प्रो.उमा कांजीलाल कुलपति इंदिरा गांधी राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय नई दिल्ली ने आभासी रूप में दीक्षान्त भाषण देते हुए कहा कि इस समय युवा ही विकसित भारत का निर्माण कर सकते हैं।इसके लिए युवाओं को अपनी समस्त ऊर्जा का उपयोग देश के विकास के लिए करना चाहिए। प्रोफेसर कांजीलाल ने कहा कि इस दौर में भारत अंतरिक्ष विज्ञान कृषि सुरक्षा तथा विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी के कई क्षेत्रों में उल्लेखनीय उपलब्धियां हासिल कर रहा है।हमें भी इसमें अपना योगदान देना है।वर्तमान में ओ डी डी एल कृत्रिम मेधा मशीन लर्निंग एवं ऑनलाइन टीचिंग लर्निंग आदि शिक्षा के विस्तार और पहुंच को सुनिश्चित करने वाले प्रभावी और महत्वपूर्ण माध्यम उपलब्ध है।इन माध्यमों का प्रयोग करके हम राष्ट्रीय शिक्षा नीति के लक्ष्यों की प्राप्ति में महती भूमिका अदा कर सकते है। यह नीति भारतीय मूल्यो सांस्कृतिक विरासत और पारंपरिक ज्ञान के समावेश के साथ-साथ आधुनिकता और नवाचार को भी प्रोत्साहित करती है।विशिष्ट अतिथि योगेन्द्र उपाध्याय उच्च शिक्षा मंत्री उत्तर प्रदेश सरकार ने उपाधि एवं स्वर्ण पदक प्राप्त शिक्षार्थियों से कहा कि वैश्वीकरण के इस युग में उन्हें आधुनिक विज्ञान और तकनीक का ज्ञान अर्जित करना होगा। ऑनलाइन शिक्षा डिजिटल पुस्तकालय वर्चुअल लैब्स और स्मार्ट क्लासरूम जैसी सुविधाएं शिक्षा के स्वरूप को बदल रही है।उपाध्याय ने कहा कि मुक्त विश्वविद्यालय का महत्व इसी कारण और भी बढ़ गया है क्योंकि यह उन विद्यार्थियों तक दूरस्थ शिक्षा के माध्यम से शिक्षा पहुंचा रहा है।उच्च शिक्षा मंत्री ने कहा कि आने वाले समय में जलवायु परिवर्तन बेरोजगारी जनसंख्या वृद्धि पर्यावरण संकट और सामाजिक असमानता जैसी अनेक चुनौतियां हमारे सामने होंगी जिनके समाधान के लिए शिक्षित सजग और जिम्मेदार नागरिकों की आवश्यकता है।

विशिष्ट अतिथि रजनी तिवारी उच्च शिक्षा राज्यमंत्री उत्तर प्रदेश सरकार ने कहा कि शिक्षा का वास्तविक अर्थ ज्ञान को जीवन से जोड़ना है।उन्होंने उपाधि प्राप्त करने वाले शिक्षार्थियों को बधाई देते हुए कहा कि वह मूल्य और संस्कार को आत्मसात करते हुए अपने व्यक्तित्व को ऐसा बनाएं जो समाज और राष्ट्र के लिए उपयोगी हो।उन्होंने कहा कि विज्ञान और प्रौद्योगिकी ने न केवल हमारी जीवन शैली बदल दी है बल्कि शिक्षा के स्वरूप को भी नई दिशा दी है।तिवारी ने कहा कि भारत को विकसित राष्ट्र बनाने का सपना तभी साकार होगा जब युवा अपनी उर्जा ज्ञान और नवाचार से इसमें योगदान देंगे।20वें दीक्षान्त समारोह में विभिन्न विद्याशाखाओं में सर्वाधिक अंक प्राप्त करने वाले शिक्षार्थियों को 27 स्वर्ण पदक प्रदान किये गये जिनमें 15 स्वर्ण पदक छात्राओं तथा 12 स्वर्ण पदक छात्रों ने प्राप्त किए।दीक्षान्त समारोह में सत्र दिसम्बर-2024 तथा जून-2025 की परीक्षा के सापेक्ष उत्तीर्ण 28421 शिक्षार्थियों को उपाधि प्रदान की गयी जिसमें 17268 पुरूष 1 ट्रांस्जेंडर तथा 11152 महिला शिक्षार्थी हैं।इस अवसर पर उपाधियों एवं अंकपत्रों को डिजीलॉकर में अपलोड कर प्रसारित किया गया।20वें दीक्षान्त समारोह में कुलाधिपति स्वर्ण पदक राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध स्नातक विज्ञान की छात्रा उमा यादव को दिया।उमा ने बी.एस.सी. की परीक्षा प्रथम श्रेणी में उत्तीर्ण की तथा वे समस्त विद्याशाखाओं की स्नातक एवं स्नातकोत्तर परीक्षाओं में उत्तीर्ण समस्त स्नातक एवं परास्नातक शिक्षार्थियों में सर्वश्रेष्ठ रहीं।

इसके साथ ही राज्यपाल एवं कुलाधिपति ने विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक इस बार स्नातकोत्तर वर्ग में विद्याशाखाओं के 07 टापर्स को दिए।जिसमें मानविकी विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध एम.ए. (संस्कृत)की छात्रा सविता प्रजापति समाज विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक प्रयागराज क्षेत्रीय केंद्र से सम्बद्ध एम.ए. (राजनीति विज्ञान)के छात्र आदित्य तिवारी प्रबन्धन अध्ययन विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र प्रयागराज से सम्बद्ध एम.बी.ए.की छात्रा सृष्टि यादव कंप्यूटर एवं सूचना विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक प्रयागराज क्षेत्रीय केन्द्र से सम्बद्ध एम.सी.ए. के छात्र सुश्रुत कुमार पाण्डेय शिक्षा विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध एम.ए. (शिक्षाशास्त्र)के छात्र गिरजा शंकर विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र आगरा से सम्बद्ध एम.एस.सी.(जैव रसायन)के छात्र सोमेश भारद्वाज स्वास्थ्य विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र लखनऊ से सम्बद्ध एम0एस0सी0 (फूड एण्ड न्यूट्रीशन)की छात्रा नेहा कनौजिया प्रमुख रही।राज्यपाल एवं कुलाधिपति ने स्नातक वर्ग में भी विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक विद्याशाखाओं के 07 टापर्स को दिये।जिसमें मानविकी विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र लखनऊ से सम्बद्ध स्नातक (बी0ए0)के छात्र राजकमल नन्दा समाज विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध स्नातक (बी0ए0)के छात्र उत्कर्ष पाण्डेय प्रबन्धन अध्ययन विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र आजमगढ़ से सम्बद्ध स्नातक (बी0कॉम0)के छात्र प्रदुम्न चौहान कम्प्यूटर एवं सूचना विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध स्नातक (बी0सी0ए0) के छात्र सूरज कुमार शिक्षा विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध स्नातक (बी0एड0)की छात्रा श्वेता सिंह विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध स्नातक (बी0एस0सी0) की छात्रा उमा यादव स्वास्थ्य विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र झांसी से सम्बद्ध स्नातक(बी.एस.सी.ह्यूमन न्यूट्रीशन) की छात्रा हुमैरा हलीम प्रमुख रहीं।दीक्षांत समारोह में राज्यपाल एवं कुलाधिपति ने12 मेधावी शिक्षार्थियों को दानदाता स्वर्ण पदक से सम्मानित किया। जिनमें बाबू ओमप्रकाश गुप्त स्मृति स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध बी0एड0 की छात्रा श्वेता सिंह जोहरा अहमद मिर्जा स्मृति स्वर्ण पदक प्रयागराज क्षेत्रीय केन्द्र से सम्बद्ध एम.सी.ए. की छात्रा अंकिता कुमारी कैलाशपत नेवेटिया स्मृति स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र प्रयागराज से सम्बद्ध एम.बी.ए.की छात्रा सृष्टि यादव स्व0 अनिल मीना चक्रवर्ती स्मृति स्वर्ण पदक स्नातक वर्ग में क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या़ से सम्बद्ध स्नातक कला के छात्र उत्कर्ष पाण्डेय स्व0 अनिल मीना चक्रवर्ती स्मृति स्वर्ण पदक स्नातकोत्तर वर्ग में क्षेत्रीय केन्द्र प्रयागराज से सम्बद्ध एम.ए.(राजनीति विज्ञान)के छात्र आदित्य तिवारी प्रो.एम.पी.दुबे पर्यावरण/गांधी चिन्तन एवं शान्ति अध्ययन उत्कृष्टता स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध स्नातक कला के छात्र उत्कर्ष पाण्डेय, प्रो.एम.पी.दुबे दिव्यांग मेधा स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केंद्र, अयोध्या से सम्बद्ध बी0एड0 की दामिनी सिंह महान राष्ट्रकवि श्रद्धेय पं0 सोहन लाल द्विवेदी स्मृति स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध एम0ए0(हिन्दी)के छात्र रत्नेश द्विवेदी स्वर्गीय प्रो.सुशील प्रकाश गुप्ता स्मृति स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध बी.एड.की छात्रा श्वेता सिंह संतोष कुमार दीक्षित स्मृति स्वर्ण पदक महिला वर्ग में क्षेत्रीय केन्द्र प्रयागराज से सम्बद्ध एम0बी0ए0 की छात्रा सृष्टि यादव स्व0 चारूल पाण्डेय स्मृति स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र लखनऊ से सम्बद्ध स्नातकोत्तर(फूड एण्ड न्यूट्रीशन)की छात्रा नेहा कनौजिया तथा स्व0 डॉ0 मुरली धर तिवारी स्मृति स्वर्णपदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध बी0एस0सी0(स्नातक विज्ञान) की छात्रा उमा यादव प्रमुख रही।इस बार राज्यपाल के निर्देश पर दीक्षान्त समारोह के पूर्व विश्वविद्यालय द्वारा गोद लिए गांवों में स्थित आंगनबाड़ी केन्द्रो प्राथमिक/जूनियर विद्यालयों तथा माध्यमिक/उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों में भाषण चित्रकला एवं कहानी कथन प्रतियोगिताओं का सफलतापूर्वक आयोजन किया गया।विश्वविद्यालय द्वारा अंगीकृत गांवों में प्रतिभागियों ने प्रतियोगिताओं में काफी रुचि दिखाई।प्रतियोगिता में प्रथम तीन स्थान पाने वाले विजेताओं परी सिंह अंश अनामिका पटेल सृष्टि शुक्ला अन्तिमा पटेल तमन्ना भारतीया अदिति मौर्या सूरज साहू जान्हवी पीहू श्रेया पटेल सेजल मौर्य निहारिका मोहिनी पटेल अर्निका मौर्या आराध्या साहू गुंजन रिमझिम राम रतन अमित सरोज प्रिंसी पटेल आयुषी तिवारी तथा सिमर साहू को दीक्षान्त समारोह के अवसर पर कुलाधिपति आनंदीबेन पटेल द्वारा पुरस्कृत किया गया।गोद लिए गांव से एक स्कूली बच्चे सृष्टि शुक्ला ने राज्यपाल के समक्ष महिला सशक्तिकरण पर उद्बोधन प्रस्तुत किया।दीक्षान्त समारोह के अवसर पर आंगनबाड़ी केन्द्रों को विश्वविद्यालय की तरफ से कुलाधिपति के द्वारा किट भेंट किया गया।राज्यपाल ने इस अवसर पर जिलाधिकारी तथा मुख्य विकास अधिकारी को राज भवन की तरफ से पुस्तके प्रदान की तथा प्राथमिक विद्यालय को पुस्तकें भेंट की।इस अवसर पर बेरुई गांव के उच्च प्राथमिक विद्यालय के बच्चों द्वारा पर्यावरण से सम्बंधित गायन सह अभिनय प्रस्तुति की गयी।राज्यपाल की मौजूदगी में इलाहाबाद संग्रहालय से समझौता ज्ञापन(एम.ओ.यू.)भी किया गया।इसके अन्तर्गत मुक्त विश्वविद्यालय में संग्रहालय अध्ययन का कोर्स आरम्भ किया जाएगा।इस दौरान स्वास्थ्य विभाग की तरफ से पांच स्कूली छात्राओं को एचपीवी की वैक्सीन लगाई गई।दीक्षान्त समारोह भारतीय पारम्परिक परिधान में आयोजित किया गया।इस मौके पर कैबिनेट मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी महापौर गणेश केसरवानी विधायक गुरु प्रसाद मौर्य बाबूलाल तिवारी कुलपति प्रो.अखिलेश कुमार सिंह पूर्व कुलपति प्रोफेसर पृथ्वीश नाग महामण्डलेश्वर कौशल्यानंद गिरि टीना मां इलाहाबाद संग्रहालय के निदेशक राजेश प्रसाद उपेन्द्र सिंह एवं जिला प्रशासन के अधिकारीगण आदि उपस्थित रहे।

राज्यपाल ने प्रो0 राजेन्द्र सिंह (रज्जू भैया)विश्वविद्यालय के अष्टम दीक्षांत समारोह कार्यक्रम का किया शुभारम्भ।

दीक्षांत समारोह में कुल 191 विद्यार्थिंयों को पदक तथा कुल 92109 छात्र-छात्राओं को दी गयी उपाधि।

राज्यपाल ने 300 आंगनबाड़ी केन्द्रों को सुसज्जित करने के लिए प्री स्कूल किट का किया वितरण।

राज्यपाल ने उपाधि प्राप्त करने वाले सभी छात्र-छात्राओं को शुभकामनाएं देते हुए उनके उज्जवल भविष्य की कामना की।

विश्वविद्यालयों व कॉलजों को शोध कार्यो एवं उनकी उपयोगिता को बढ़ाये जाने का किया आह्वाहन।

शिक्षा समर्पण देशभक्ति की भावना से मिलती है राष्ट्र सेवा की प्रेरणा-राज्यपाल।

अनगिनत मनीषियों की भूमि युवा अपने ज्ञान नैतिकता व सेवा की परम्परा से बनाये इस पुण्य धरती को समृद्ध-राज्यपाल।

राज्यपाल ने विद्यार्थिंयों को एक लक्ष्य निर्धारित कर आगे बढ़ने तथा लक्ष्य प्राप्ति तक नियमित कठिन परिश्रम करने के लिए किया प्रेरित।

संजय द्विवेदी प्रयागराज।राज्यपाल उत्तर प्रदेश आनन्दीबेन पटेल सोमवार को प्रो0राजेन्द्र सिंह रज्जू भैया विश्वविद्यालय में आयोजित अष्टम दीक्षांत समारोह कार्यक्रम में सम्मिलित हुई।राज्यपाल ने दीक्षांत समारोह कार्यक्रम का शुभारम्भ किया।इस अवसर पर आयोजित दीक्षांत समारोह में परास्नातक स्नातक एवं व्यवसायिक शिक्षा के विभिन्न पाठ्यक्रमों के कुल 92109 विद्यार्थिंयों को उपाधि प्रदान की गयी।इसके साथ ही साथ आयोजित कार्यक्रम में विभिन्न विषयों में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले कुल 191 विधार्थिंयों को पदक प्रदान किया जिसमें 129 छात्राएं एवं 62 छात्र पदक प्राप्त किए।इस अवसर पर राज्यपाल ने गोद लिए गए गांवों के प्राथमिक विद्यालय में पढ़ने वाले प्राथमिक विद्यालयों के बच्चों को उपहार सामग्री का वितरण किया।राज्यपाल के द्वारा जिला प्रशासन की ओर से आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों हेतु उपलब्ध कराये गये 200 आंगनबाड़ी किट एवं विश्वविद्यालय की ओर से उपलब्ध कराये गये 100 किट कुल 300 किटों को आंगनबाड़ी केन्द्रों के लिए प्रदान किया गया।राज्यपाल ने विभिन्न विद्यालयों में करायी गयी प्रतियोगिताओं में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले बच्चों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया।इसके साथ ही विश्वविद्यालय के एवं अन्य विद्यालयों में अच्छा कार्य करने वाले कुछ शिक्षकों को सम्मानित किया गया। राज्यपाल ने राष्ट्रीय खेलों में पदक प्राप्त करने वाले खिलाड़ियों को पुरस्कार की धनराशि प्रदान किया और सम्मानित किया।राज्यपाल के द्वारा विश्वविद्यालय की स्मारिका का विमोचन किया गया।इस अवसर पर राज्यपाल ने अधिकारियों एवं शिक्षकों को उनके द्वारा स्वरचित पुस्तक चुनौतियां हमें पसंद है एवं इसके साथ चार अन्य पुस्तके प्रदान किए।कार्यक्रम में प्राथमिक विद्यालयों के बच्चों के द्वारा पर्यावरण सुरक्षा ही जीवन सुरक्षा है विषय पर आधारित-पेड़ बचाओं रे भइया पेड़ लगाओ गीत पर मनमोहक प्रस्तुती दी गयी।राज्यपाल आनन्दीबेन पटेल के द्वारा प्रो0 राजेन्द्र सिंह रज्जू भैया विश्वविद्यालय परिसर में पौधरोपण भी किया गया l

राज्यपाल ने अपने उद्बोधन में कहा कि आज दीक्षांत समारोह में लगभग 200 लोगो को उपाधियां मेडल दिए गए मैं उन सभी लोगो को बहुत-बहुत शुभकामनाएं देती हूं।आपने जो वर्षो तक मेहनत की है जो सीखा है इसके लिए आपको यह डिग्री और अवार्ड प्राप्त हुए है मैं इसके लिए सबसे पहले आपके माता-पिता को बधाई एवं शुभकामनाएं देती हूं एवं उनका अभिनंदन करती हूं क्योंकि आपकी बढ़ती उम्र के साथ उनकी जिम्मेदारियां एवं कठिनाईयां भी बढ़ती जाती है फिर भी आपके सपनों को पूरा करने एवं आगे बढ़ाने का प्रयास करते रहते है।राज्यपाल ने कहा कि आज के दीक्षांत समारोह में भी बेटिया मेडल व डिग्री प्राप्त करने में बेटो से आगे है, कहा कि आज नारी शक्ति आगे है और भविष्य में भी इसी प्रकार आगे बढ़ती रहेगी। उन्होंने कहा कि हमारा समाज नारी शक्ति की तरफ बढ़ रहा है।उन्होंने कहा कि आज का परिदृश्य बदल चुका है आगे बढ़ने के लिए सबको कड़ी मेहनत करनी पड़ेगी। दुनिया भर में प्रतिस्पर्द्धा बढ़ रही है समस्याओं के समाधान करने का प्रयास हो रहा है और आज भारत पूरी दुनिया को मार्गदर्शन व नेतृत्व प्रदान कर रहा है।राज्यपाल ने प्रधानमंत्री के द्वारा तात्कालिक समय में असम राज्य में किए गए इथेनॉल संयंत्र कार्यों को रेखांकित करते हुए विद्यार्थियों को नए शोध के आयाम एवं क्षेत्र को खोजने हेतु प्रेरित किया।उन्होंने कहा कि आज विश्वविद्यालयों को रिसर्च व पेंटेंट पर ध्यान देने की आवश्यकता है।कहा कि संसाधनों का उपयोग जनकल्याण के लिए कैसे किया जा सकता है इसके बारे में सोचना चाहिए।उन्होंने कहा कि हमारी समस्यायें क्या है इसका समाधान क्या है इसके समाधान के लिए हमें क्या करना चाहिए कहां क्या-क्या संसाधन है जिनका हम उपयोग कर भारत को आगेे बढ़ाने का प्रयास कर सकते है।राज्यपाल ने कहा कि हमें भारत में नया ताजमहल बनाने की आवश्यकता नहीं है अपितु पूरे विश्व में भारत को ताजमहल की तरह चमकाना है।

उन्होंने विद्यार्थिंयों में जोश भरते हुए कहा कि भारत युवाओं का देश है और भारत को विकसित राष्ट्र बनाने के लिए आने वाले 25 वर्ष आपके लिए महत्वपूर्ण हैं। यदि युवाशक्ति संकल्प ले तो पूरी दुनिया बदल सकती है। परंतु इसके लिए शिक्षा समर्पण देश के विकास की भावना देशभक्ति की आवश्कता होती है और जब तक हम यह अपने जीवन में नहीं उतारेंगे तब तक राष्ट्र की सेवा हम नहीं सकते हैं। आप अपनी योग्यता ज्ञान व सेवा को केवल अपने स्वयं व परिवार तक सीमित न रखकर राष्ट्रसेवा भाव से अपनी योग्यता को पूरे देश में प्रसारित करे जिससे पूरे देश का विकास हो सके।राज्यपाल ने कहा कि प्रयागराज की पावन धरती पर मां गंगा यमुना एवं सरस्वती के त्रिवेणी संगम में स्नान यहां की मिट्टी पानी में करोड़ो लोगो की आस्था है।उन्होंने कहा कि संगम की यह भूमि अनगिनत मनीषियों की विरासत है।अब आप लोगो की बारी है कि आप अपने ज्ञान नैतिकता व सेवाभाव की परम्परा को कैसे समृद्ध करते है।उन्होंने कहा कि चुनौतियों से आपका ज्ञान व आत्मविश्वास बढ़ेगा आपके जीवन में कठिनाईयां आएंगी इससे डरने की आवश्यकता नहीं है, बल्कि अपने लक्ष्य को तय कर कठिनाईयों से मार्ग प्रशस्त करते हुए योजना बनाकर आगे बढिए और उस लक्ष्य को प्राप्त करिए।राज्यपाल ने कहा कि दीक्षांत समारोह आपको प्रमाणपत्र डिग्रिया एवं मेडल देने के साथ ही आपको यह स्मरण भी कराता है कि अब आपकी जिम्मेदारी पहले से कहीं अधिक बढ़ गयी है।

विश्वविद्यालय की पहचान केवल उसके भवनो डिग्रियों से नहीं है बल्कि उसके अनुशासन शोधकार्य सामाजिक चेतना और अन्तर्राष्ट्रीय दृष्टिकोण में निहित होती है।शिक्षा तभी सार्थक होती है जब विद्यार्थी गुरू के सानिध्य में बैठकर न केवल पाठ्यपुस्तक से बल्कि उनके अनुभव और जीवनदर्शन से सीखते है।कहा कि अध्यापको का यह दायित्व बनता है कि वे विद्यार्थिंयों के सानिध्य में बैठे और उनसे अच्छे सम्बन्ध बनाते हुए उन्हें सिखाने का कार्य करे।राज्यपाल महोदया नेे विद्यार्थियों की 75 प्रतिशत की उपस्थिति की उपयोगिता को इंगित किया तथा 25 प्रतिशत अनुपस्थिति का व्यक्तित्व विकास में उपयोगिता पर विशेष बल दिया।उन्होंने विश्वविद्यालयों को समय से अपने यहां शैक्षिक सत्र परीक्षाओ का आयोजन कर समय से रिजल्ट देने एवं बायोमैक्ट्रिक उपस्थिति सिस्टम बनाने की व्यवस्था करने के लिए कहा।राज्यपाल ने झोपड़ पट्टी में रहने वाले 80 बच्चों की शिक्षा की व्यवस्था कस्तूरबा गांधी विद्यालय में स्वच्छता एवं कमियों को दूर कराने भिक्षा मांगने वाले बच्चों का स्कूलों में एडमिशन कराने बीच में अपनी पढ़ाई को छोड़ने वाले बच्चों को इकट्ठा कर राजभवन के विद्यालय में एडमिशन करवायें जाने और वहां पढ़ रहे बच्चों की अच्छी शिक्षा के बारे में उनके द्वारा किए गए प्रयासों को बताते हुए कहा कि इसी प्रकार सभी को इनके लिए ध्यान दिए जाने की आवश्यकता है।राज्यपाल ने कहा कि आंगनबाड़ी केन्द्रों में सभी आवश्यक साधन एवं व्यवस्थायें पहुंचायी जा रही है। उन्होंने कहा कि अध्यापकों का गुु्रप बनाकर जिन आंगनबाड़ी केन्द्रो में किट प्रदान की गयी है वहां जाकर देखे कि किस प्रकार काम हो रहा है क्या परिवर्तन कुछ आया है आंगनबाड़ी केन्द्रो में और क्या समस्या है इन सब की सूची तैयार कर जिलाधिकारी को उपलब्ध कराकर उन समस्याओं को दूर कराये जाने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि सरकार रिसर्च के लिए अनुदान देती है और विश्वविद्यालय शोध के क्षेत्र में अच्छा कार्य भी कर रहे है लेकिन अच्छे शोध कार्यों एवं फाइंडिंग का सही उपयोग नहीं हो पा रहा है इस विषय पर कार्य करने की आवश्यकता है।राज्यपाल ने दीक्षांत समारोह के अवसर पर पुनः सभी विद्यार्थिंयों को बधाई देते हुए विद्यार्थिंयों से एक लक्ष्य निर्धारित कर उसी के अनुरूप आगे बढ़ने के लिए कहा है।

प्रयागराज की पवित्र भूमि को आगे बढ़ाने के लिए हमेशा सतत् रहे जागृत रहे और कुछ न कुछ योगदान अवश्य करते रहे। उन्होंने कहा कि मनुष्य को मनुष्य बनाया इसी ध्येय वाक्य को आप आगे प्रसारित करे।इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में लोक सेवा आयोग के अध्यक्ष संजय श्रीनेत्र ने दीक्षांत समारोह में मेडल व उपाधि प्राप्त करने वाले सभी छात्र-छात्राओं को शुभकामनाएं एवं बधाई देते हुए विद्यार्थियों के उज्जवल भविष्य की कामना की।उन्होंने विश्वविद्यालयों को शिक्षा के साथ-साथ सामाजिक सरोकारों से भी ओतप्रोत बताते हुए संस्कारित शिक्षा की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने कहा कि शिक्षा को चरित्र का उत्प्रेरक होना चाहिए और संस्कारित ज्ञान होना अच्छा है।उन्होंने कहा कि हमें हर कार्य में उत्कृष्टता पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है क्योंकि उत्कृष्टता की जितनी साधना करेंगे उतना ही हमें सम्मान मिलेगा।कैबिनेट मंत्री उच्च शिक्षा विभाग योगेन्द्र उपाध्याय ने अपने उद्बोधन में प्रो.राजेन्द्र सिंह के जीवन चरित्र पर विस्तार से प्रकाश डालते हुए कहा कि उनका जीवन हम सब के लिए एक प्रेरणा स्रोत है और हमें आगे बढ़ने के लिए उनसे प्रेरणा लेनी चाहिए।मंत्री ने कहा कि यह शिक्षण संस्थान प्रयागराज जैसे पौराणिक स्थल में है जो भारतीय संस्कृति एवं सभ्यता की मसाल को वर्षों वर्ष से जलाए हुए हैं।भारतीय ज्ञान परंपरा सामाजिक समरसता का संदेश देने वाला यह शहर है। अभी हाल ही में यहां पर विश्व का सबसे बड़े धार्मिक मेले महाकुंभ का आयोजन सकुशल संपन्न हुआ जहां पर 65 करोड़ से अधिक लोगों ने प्रयागराज की धरती पर आकर समागम किया। पूरे विश्व में इस आयोजन को अचंभित होकर देखा ऐसे क्षेत्र के आप लोग वासी है।गंगा जमुना एवं अदृश्य सरस्वती का संगम अक्षय वट यहां पर है।मंत्री ने कहा कि आज आप लोगों का दीक्षांत समारोह है यह आप लोगों को नवजीवन नई दिशा देने वाला एक समागम है।

उन्होंने मेडल एवं डिग्रियां प्राप्त करने वाले सभी विद्यार्थियो उनके माता-पिता गुरुजनों को शुभकामनाएं एवं बधाई देते हुए विद्यार्थियों के उज्जवल भविष्य की कामना की।उन्होंने कहा कि माता-पिता गुरुओं के आशीर्वाद एवं सहयोग श्रम के बिना आप यह मुकाम हासिल नहीं कर सकते।उन्होंने विद्यार्थियों को जीवन पर्यंत इसे याद रखने के लिए कहा।उन्होंने कहा कि आज आप लोगों को उपाधियां मिली है इसकी उपयोगिता समाज एवं राष्ट्र के लिए बने यह आपका लक्ष्य होना चाहिए। उन्होंने कहा कि इस देश ने आपको बहुत कुछ दिया है इसलिए हमेशा व्यक्तिगत हित राष्ट्रहित में सम्मिलित रहे।यह संसाधन जिससे आपने उपाधि प्राप्त की है यह इस देश की ही देन है।हमें अपने स्वहित एवं राष्ट्रहित के साथ आगे बढ़ना है। उन्होंने कहा कि स्वहित एक कालखंड तक जीवित रहता है लेकिन राष्ट्रहित अनादिकाल तक चलता है।राज्य मंत्री उच्चशिक्षा विभाग रजनी तिवारी ने दीक्षांत समारोह के अवसर पर अपने उद्बोधन में आज डिग्रियां प्राप्त करने वाले विद्यार्थियो उनके माता-पिता शिक्षकों को बहुत-बहुत बधाई एवं शुभकामनाएं देते हुए उनके उज्जवल भविष्य की कामना करते हुए कहा कि दीक्षांत समारोह हमारे छात्र छात्राओं की उपलब्धियो के उत्सव का दिन है।आज आपने जो उपलब्धियां एवं डिग्रियां प्राप्त की है यह आपके कठिन परिश्रम त्याग और तपस्या का प्रतिफल है।देश और प्रदेश के निर्माण में आप इनका उपयोग करेंगे यह आपकी जिम्मेदारी है।

उन्होंने कहा कि आज भारत विश्व मंच पर उभरती शक्ति के रूप में देखा जा रहा है।विज्ञान प्रौद्योगिकी स्टार्टअप स्वास्थ्य पर्यावरण और सामाजिक सुधार सहित हर क्षेत्र में युवाओं के लिए संभावनाएं हैं।उन्होंने कहा कि मुझे आशा है कि आप इन अवसरों का लाभ उठाकर अपने भविष्य को सवारेगे तथा देश और प्रदेश के प्रगति में भी अपना महत्वपूर्ण योगदान देंगे। उन्होंने कहा कि आज प्रधानमंत्री के नेतृत्व में हम विकसित देश की ओर आगे बढ़ रहे है।प्रधानमंत्री ने कहा था कि वर्ष 2047तक हमारा देश विकसित देश बनेगा तो उसमें सबसे महत्वपूर्ण योगदान हमारे युवाओं का होगा।इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा था कि अब बेटियों की सामर्थ्य घर तक ही सीमित नहीं है बल्कि बेटियों की सामर्थ्य देश की फिजा व दिशा को बदलने वाली है। उन्होंने कहा कि आज देश व प्रदेश के सभी विश्वविद्यालय अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं।मुख्यमंत्री के नेतृत्व में प्रदेश की शिक्षा व्यवस्था मजबूत हुई है।

मंत्री ने कहा कि विकसित देश की परिकल्पना बिना उत्तर प्रदेश के सम्भव नहीं है।इस अवसर पर राजेन्द्र सिंह(रज्जू भइया)विश्वविद्यालय के कुलपति अखिलेश कुमार सिंह ने विश्वविद्यालय की शैक्षणिक उपलब्धियों के बारे में बताते हुए कहा कि आज 739 कालेज इस विश्वविद्यालय से सम्बद्ध है तथा 5 लाख से अधिक छात्र-छात्राएं शिक्षा ग्रहण कर रहे है।उन्होंने कहा कि संकल्प निष्ठा व सामूहिक प्रयास से राष्ट्रीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद(नैक)द्वारा विश्वविद्यालय को ए ग्रेड प्रदान किया गया है जो विश्वविद्यालय की निरंतर प्रगति शोध संस्कृति नवाचार और सामाजिक उत्तरदायित्व की भावना को दर्शाता है।इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नंदी जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा कुल सचिव विनीता यादव विश्वविद्यालय के आचार्यगण व छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे।

बलिया में राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ के आह्वान पर शिक्षकों ने टीईटी अनिवार्यता के खिलाफ भरी हुंकार

संजीव सिंह बलिया। अखिल भारतीय राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ के आह्वान पर देश के समस्त जनपदों में शिक्षकों ने टीईटी परीक्षा की अनिवार्यता के खिलाफ आवाज उठाई। इसी क्रम में बलिया में भी राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ के जिला संयोजक राजेश कुमार सिंह के नेतृत्व में भारत सरकार से तत्काल इस निर्णय को वापस लेने और शिक्षकों की सेवा सुरक्षा एवं आजीविका संकट से राहत दिलाने हेतु जिलाधिकारी के माध्यम से प्रधानमंत्री को ज्ञापन सौंपा गया। जिला संयोजक राजेश कुमार सिंह ने कहा कि जब उनकी नियुक्ति हुई थी, तब सभी सरकारी नियमों का पालन करते हुए नियुक्ति हुई थी। शिक्षा का अधिकार अधिनियम-2009 के बाद वर्ष 2010 से टीईटी अनिवार्य किया गया था, लेकिन अब 20-25 वर्षों की सेवा के बाद नियम बदलकर शिक्षकों पर टीईटी परीक्षा थोपना न्यायालय का अन्यायपूर्ण निर्णय है। उन्होंने प्रधानमंत्री से आग्रह किया कि शिक्षकों के सम्मान और उनके पवित्र शिक्षण कार्य का अपमान न हो, और तुरंत उनका गौरव वापस दिलाया जाए। जिला सहसंयोजक पुष्पेन्द्र सिंह ने कहा कि आज के ज्ञापन में शिक्षक समुदाय की व्यथा और मांगों को पूरी निष्ठा के साथ शामिल किया गया है। उन्होंने सरकार से पुनः आग्रह किया कि शिक्षकों की सेवा सुरक्षा और सम्मान को बनाए रखने के लिए इस महत्वपूर्ण मुद्दे पर तुरंत सकारात्मक कदम उठाए जाएं। जिला सहसंयोजक प्रमोद कुमार सिंह ने कहा कि न्यायालय का यह फैसला शिक्षक विरोधी है और बिना शिक्षकों की बात सुने एकतरफा निर्णय है। अगर आवश्यकता पड़ी तो शिक्षक संघर्ष के लिए दिल्ली तक कूच करेंगे। शिक्षकों के सम्मान के साथ समझौता नहीं होने दिया जाएगा। सहसंयोजक ज्ञान प्रकाश उपाध्याय ने बताया कि उच्चतम न्यायालय ने बिना नियमों को देखे मनमाना फैसला सुनाया है, जबकि भारत सरकार के राजपत्र में स्पष्ट है कि 2010 से पहले नियुक्त अध्यापकों के लिए टीईटी अनिवार्य नहीं था। इस फैसले से पूरे शिक्षक समाज में निराशा फैली है, जो शिक्षा कार्यों पर भी असर डालेगी। उन्होंने प्रधानमंत्री से अनुरोध किया कि इस फैसले पर पुनर्विचार किया जाए ताकि शिक्षकों की निराशा खत्म हो सके। इस अवसर पर समीर कुमार पाण्डेय, अमरेंद्र सिंह, रामअशीष यादव, ज्ञान प्रकाश उपाध्याय, संजीव कुमार सिंह, अकीलुर्रहमान खान, राजेश सिंह, विनय राय, राकेश कुमार मौर्य, धर्मेन्द्र गुप्ता, कृष्णानंद पाण्डेय, ओंकारनाथ सिंह, राजीव सिंह, उमेश राय, अभिषेक सिंह, गणेश यादव, मुकेश सिंह, संजीव रंजन, राघवेंद्र सिंह, अमरेश चतुर्वेदी, चंदन गुप्ता, दिग्विजय सिंह, राकेश गुप्ता, कर्ण प्रताप सिंह, अनिल सिंह, रजनीश चौबे, अमित नाथ तिवारी, सतीश कुशवाहा, शीतांशु वर्मा, सतीश त्रिपाठी, नीतीश राय, डॉ. विनय भारद्वाज, अभिषेक राय, अंगद वर्मा, अमित यादव, सुशील दुबे, बब्बन यादव, कुलभूषण त्रिपाठी, अभिषेक तिवारी, पुनीत सिसोदिया, सुदीप तिवारी, रामप्रवेश राम, संजय सिंह, शुभम सिंह, संतोष पाण्डेय, अजय वर्मा, अभय सिंह, अशोक सिंह, रवि यादव, विनोद यादव, राजकुमार यादव, अजय सिंह, धनजी प्रसाद, संजय कुमार, श्रीकांत मिश्रा, अशोक तिवारी, सत्येन्द्र चौबे, कविता सिंह समेत सैकड़ों शिक्षक उपस्थित थे।
विहिप ने दिया अवर अभियंता के विरुद्ध सांकेतिक धरना एसडीओ द्वारा कार्रवाई के आश्वासन पर धरना स्थगित
आचार्य ओमप्रकाश वर्मा नगरा बलिया! विद्युत उपकेन्द्र के अवर अभियंता के खिलाफ विश्व हिंदू परिषद के कार्यकर्ताओं ने मंगलवार को एक दिवसीय सांकेतिक धरना दिया। कार्यकर्ताओं का आरोप है कि जेई विद्युत उपभोक्ताओं के साथ बदसलूकी कर रहे हैं और भ्रष्टाचार में लिप्त हैं। विहिप जिलाध्यक्ष राजीव कुमार सिंह चंदेल ने कहा कि अवर अभियंता सरकार को बदनाम करने के लिए लोगों का उत्पीड़न कर रहे हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा और विहिप कार्यकर्ताओं के साथ जेई का व्यवहार उचित नहीं है। भाजपा से जुड़े लोगों की बिजली बकाया बिल दिखाकर काट दी जा रही है।धरने के दौरान पहुंचे उप खंड अधिकारी ने कार्यकर्ताओं की शिकायतों को सुना। उन्होंने बताया कि इस मामले में अधीक्षण अभियंता बलिया से बात हुई है। जेई पर लगे आरोपों की जांच चल रही है और जांच के बाद कार्रवाई की जाएगी। विहिप जिलाध्यक्ष ने चेतावनी दी कि यह सिर्फ सांकेतिक प्रदर्शन है। अगर कार्रवाई नहीं हुई तो विहिप बड़ा आंदोलन करेगी। प्रदर्शन में अरविंद मिश्र, दीपक कुमार, शशि जायसवाल, रणधीर प्रसाद, विद्या सागर सिंह, अनूप वर्मा, तेज बहादुर सिंह, सतीश सोनी और सन्नी सिंह समेत कई कार्यकर्ता मौजूद थे।
बिहार में 'सेवा पखवाड़ा' के तहत 'चलो जीते हैं' सेवा रथ रवाना, बीजेपी नेताओं ने दिखाई हरी झंडी
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* पटना, 16 सितंबर - भाजपा के 'सेवा पखवाड़ा' के तहत आज पटना से 243 'चलो जीते हैं' सेवा रथों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया। इन रथों को प्रदेश अध्यक्ष डॉ. दिलीप जायसवाल, उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी और केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय समेत कई वरिष्ठ नेताओं ने ऐतिहासिक गांधी मैदान से रवाना किया। सेवा, समर्पण और संगठन का संदेश इस अवसर पर, प्रदेश अध्यक्ष डॉ. दिलीप जायसवाल ने कहा कि ये रथ पूरे बिहार में सेवा, समर्पण और संगठन के संदेश को घर-घर तक पहुंचाएंगे। उन्होंने बताया कि इन रथों के माध्यम से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जीवन पर आधारित फिल्म 'चलो जीते हैं' का प्रदर्शन सभी 243 विधानसभा क्षेत्रों में किया जाएगा। इसका उद्देश्य लोगों को पीएम मोदी के संघर्ष और संकल्प से प्रेरणा लेने के लिए प्रेरित करना है। उन्होंने जोर देकर कहा कि भाजपा का लक्ष्य समाज के अंतिम व्यक्ति तक सेवा और सकारात्मक बदलाव पहुंचाना है। गरीब का बेटा भी बन सकता है प्रधानमंत्री उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने कहा कि 'चलो जीते हैं' रथ यह प्रेरणा देगा कि एक गरीब का बेटा भी देश का प्रधानमंत्री बन सकता है। उन्होंने लोगों से इस भावना को घर-घर तक पहुंचाने का आह्वान किया। साथ ही, उन्होंने जीएसटी दरों को कम करने के लिए मोदी सरकार की सराहना की और सभी से 'श्रेष्ठ भारत' के निर्माण में योगदान देने का आग्रह किया। जनता तक पहुंचेंगे सेवा कार्य केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने बताया कि भाजपा हर साल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिन के अवसर पर 'सेवा पखवाड़ा' का आयोजन करती है। इसका मुख्य मकसद जनता तक सेवा कार्यों और केंद्र व राज्य सरकार की योजनाओं की जानकारी पहुंचाना है। उन्होंने कहा कि 'चलो जीते हैं' रथ भी इसी उद्देश्य को आगे बढ़ाएगा। इस कार्यक्रम में स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय, पथ निर्माण मंत्री नितिन नवीन और राष्ट्रीय मंत्री ऋतुराज सिन्हा समेत हजारों कार्यकर्ता और पदाधिकारी मौजूद रहे।
शादी का झांसा देकर यौन शोषण करने के आरोपी सिपाही को 2 साल कारावास की सजा

अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश द्वितीय संजय कुमार चौधरी की आदालत ने सुनाई सजा

25 0000 र जुर्माना भी लगाया


कोडरमा में शादी का झांसा देकर एक सिपाही, द्वारा अपने ही विभाग के महिला पुलिसकर्मी से दुष्कर्म (यौन शोषण) किए जाने के एक मामले St- 02 /2024 की सुनवाई करते हुए, अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश द्वितीय संजय कुमार चौधरी की अदालत ने आरोपी अभिमन्यु कुमार, 34 वर्ष, पिता अर्जुन प्रसाद थाना- मुफस्सिल, जिला- हजारीबाग निवासी को 493 आईपीसी के तहत तहत दोषी पाते हुए 2 वर्ष कारावास की सजा सुनाई। साथ ही ₹25000 जुर्माना लगाया। जुर्माना की राशि नहीं देने पर 2 माह अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी। मामला वर्ष 2018 का है । इसे लेकर भुक्तभोगी महिला पुलिसकर्मी ने कोडरमा महिला थाना मे मामला दर्ज कराया गया था। जिसमें उसने कहा था कि शादी का झांसा देकर अभिमन्यु कुमार ने उसके उसके साथ कई बार शारीरिक संबंध बनाया । जब मैंने कहा कि मैं शादीशुदा हूं उसके बावजूद उसने कहा कि मैं तुमसे शादी कर लूंगा और मेरे मना करने के बाद भी लगातार यौन शोषण करता रहा । शादी की बात करने पर वह इनकार कर दिया। अभियोजन का संचालक लोक अभियोजक प्रवीण कुमार सिंह ने किया। इस दौरान सभी गवाहों का परीक्षण कराया गया । कार्रवाई के दौरान अपराध की गंभीरता को देखते हुए लोक अभियोजक ने न्यायालय से अभियुक्त को अधिक से अधिक सजा देने का आग्रह किया। वहीं बचाव पक्ष की ओर से अधिवक्ता राजीव कुमार सिंह ने दलीलें पेश करते हुए बचाव किया। अदालत ने सभी गवाहों और साक्षयो का अवलोकन करने के उपरांत अभियुक्त को 493 आईपीसी के तहत के तहत दोषी पाते हुए 2 वर्ष कारावास की सजा मुकर्रर की और जुर्माना लगाया।
नगरा में सार्वजनिक रामलीला समिति का भव्य भूमि पूजन और ध्वजारोहण समारोह, रामलीला महोत्सव की तैयारियों का हुआ शुभारंभ
रामेश्वर प्रजापति  तहसील रसड़ा( नगरा) ! नगरा में मंगलवार को सार्वजनिक रामलीला समिति के द्वारा एक भव्य और प्रतिष्ठित कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसमें जनता इंटर कॉलेज परिसर में भूमि पूजन तथा ध्वजारोहण समारोह संपन्न हुआ। यह आयोजन रामलीला महोत्सव की तैयारियों का औपचारिक शुभारंभ था, जिसके लिए नगरवासी एवं आयोजन समिति दोनों ने विशेष उत्साह और श्रद्धा के साथ सहभागिता की। कार्यक्रम की शुरुआत वैदिक मंत्रोच्चारण के बीच पंडित संतोष कुमार द्विवेदी द्वारा विधिपूर्वक भूमि पूजन एवं पूजन-अर्चन से हुई, जिससे पूरे वातावरण में आध्यात्मिक उर्जा का संचार हो गया। इस अवसर पर प्रभु श्रीरामचंद्र और हनुमानजी की भक्तिपूर्ण स्तुति गूंज उठी, जिन्होंने समस्त उपस्थित जनों के हृदयों को भक्तिमय कर दिया। रामलीला समिति के अध्यक्ष राजेश गुप्ता दीपू ने सभी श्रद्धालुओं का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि यह कार्यक्रम न केवल धार्मिक विश्वास को मजबूत करेगा, बल्कि हमारे सांस्कृतिक विरासत को जीवंत रखने में भी सहायक होगा। चेयरमैन प्रतिनिधि उमाशंकर राम, पूर्व ब्लॉक प्रमुख निर्भय प्रकाश, महामंत्री आलोक शुक्ला, डॉ. समरजीत सिंह, राम दर्शन यादव, डॉ. शशि प्रकाश कुशवाहा, रामायण ठाकुर, शशि गुप्ता, उदय नारायण वर्मा, के.पी. यादव, प्रियांशु जायसवाल, जयप्रकाश जयसवाल, गणपति मुन्ना, रिंकू गुप्ता, बृजमोहन गुप्ता, राजू चौहान, अमरेंद्र सोनी और डॉ. डीएन प्रसाद सहित समिति के समस्त सदस्य इस भव्य आयोजन में मौजूद रहे। पूरे परिसर में "जय श्रीराम" और "जय हनुमान" के उद्घोषों से गूंज मची और माहौल भक्तिभाव से सराबोर हो गया। इस आयोजन ने न केवल नगरवासियों को आपस में जोड़ने का काम किया, बल्कि रामलीला के माध्यम से सामाजिक एकता और परंपराओं को सहेजने का संदेश भी दिया। रामलीला समिति का यह प्रयास नगरा के सांस्कृतिक जीवन को समृद्ध बनाने के साथ-साथ आगामी रामलीला महोत्सव के लिए मजबूत तैयारियों का संकेत है। समिति ने आशा व्यक्त की कि यह आयोजन नगरवासियों में धार्मिक एवं सामाजिक समरसता को और प्रगाढ़ करेगा तथा आने वाले समय में रामलीला महोत्सव का भव्य आयोजन किया जाएगा, जो सैकड़ों श्रद्धालुओं को आकर्षित करेगा। यह भूमि पूजन और ध्वजारोहण समारोह नगरा में आदर्श सांस्कृतिक परंपराओं को आगे बढ़ाने में एक महत्वपूर्ण पड़ाव साबित होगा, जिससे रामलीला समिति की सक्रियता और नगर की सांस्कृतिक धरोहर के संरक्षण को एक नई गति मिलेगी
. समरजीत सिंह बने शिक्षक एमएलसी चुनाव के बिल्थरारोड विधानसभा संयोजक, क्षेत्र में खुशी की लहर
राम ईश्वर प्रजापति नगरा बलिया! । भारतीय जनता पार्टी के द्वारा डा0 समरजीत सिंह को शिक्षक एमएलसी चुनाव का बिल्थरारोड विधानसभा संयोजक नियुक्त किया गया है। यह घोषणा होते ही क्षेत्र में हर्ष की लहर दौड़ गई। लोगों ने एक-दूसरे को मिठाई खिलाकर खुशी का इजहार किया और उन्हें ढेर सारी शुभकामनाएं दीं। इस अवसर पर सूर्य प्रताप सिंह शाही (मंडल अध्यक्ष), पंचम गुप्ता, धर्मराज सिंह, विकी, आशुतोष पांडे, कृष्ण पाल यादव, जयप्रकाश जयसवाल, दीपक, रामायण ठाकुर, संजय पांडे, कृष्ण कुमार कुशवाहा समेत अनेक सम्मानित लोगों ने उन्हें बधाई दी। डा. समरजीत सिंह ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी ने जो जिम्मेदारी उन्हें सौंपी है, उसे पूरी निष्ठा और ईमानदारी से निभाना उनका कर्तव्य होगा। उन्होंने कहा कि शिक्षक समाज की रीढ़ हैं और उनकी समस्याओं के समाधान के लिए वे हर संभव प्रयास करेंगे। संगठन को मजबूत बनाने के साथ-साथ शिक्षकों की आवाज़ को सदन तक पहुँचाना उनकी प्राथमिकता होगी। डा. सिंह ने विश्वास जताया कि सबके सहयोग से शिक्षक एमएलसी चुनाव में ऐतिहासिक सफलता प्राप्त होगी।
हिमाचल से उत्तराखंड तक तबाही का मंजर, देहरादून के सहस्रधारा में बादल फटा, मंडी में बारिश ने बरपाया कहर

#dehraduncloudburstfloodinmandi_dharampur

उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में एक बार फिर तबाही मची है। उत्तराखंड में लगातार बारिश अपना कहर बरपा रही है। देर रात देहरादून के सहस्रधारा क्षेत्र में बादल फटने से भारी तबाही मची है। वहीं मसूरी में देर रात भारी बारिश से मजदूरों के आवास के ऊपर मलबा आ गया। घटना में एक मजदूर की मौत हो गई और एक गंभीर रूप से घायल हो गया। इधर हिमाचल प्रदेश में एक बार फिर पहाड़ों पर आफत की बारिश आई है। मंडी जिले में मूसलधार बारिश ने हालात बिगाड़ दिए हैं। पिछले 24 घंटों से जारी तेज बारिश ने नदियों और नालों का जलस्तर अचानक बढ़ा दिया है। इस विपदा में 3 लोगों की मौत हो गई है।

करीब 100 लोग फंसे

सहस्रधारा क्षेत्र में सोमवार देर रात बादल फटा। स्थानीय लोगों के मुताबिक मुख्य बाजार में मलबा आने से दो से तीन बड़े होटल और कई दुकानें क्षतिग्रस्त हो गई हैं। कार्डीगाड़ के ग्राम प्रधान राकेश जवाड़ी ने अमर उजाला को बताया कि घटना रात करीब साढ़े 11 बजे की है। कार्डीगाड़ में बादल फटने के बाद मुख्य बाजार में बड़े पैमाने पर मलबा आ गया। इससे दो से तीन बड़े होटल क्षतिग्रस्त हो गए जबकि एक मार्केट में बनीं करीब 7 से 8 दुकानें ध्वस्त हो गईं। वहां पर करीब 100 लोग फंस गए थे जिन्हें गांव वालों ने सकुशल रेस्क्यू कर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया।

मसूरी में भी मलबा आने से मजदूर की मौत

दूसरी तरफ मसूरी में भी झड़ी पानी में एक मजदूर के आवास पर मलबा आ गया. घटना में एक मजदूर की मौत हो गई है और एक गंभीर रूप से घायल हो गया है। हादसे की सूचना मिलते ही पुलिस और स्थानीय लोग मौके पर पहुंच गई और घायल मजदूर को उपचार के लिए अस्पताल ले गए। शहर कोतवाल संतोष कुमार ने बताया कि बारिश का पानी और मलबा मजदूर के कच्चे आवास के ऊपर आ गया था। इससे एक मजदूर की मलबे में दबने से मौके पर ही मौत हो गई और एक मजदूर घायल हो गया है।

हिमाचल प्रदेश में आफत की बारिश

दूसरी तरफ हिमाचल प्रदेश में आफत की बारिश आई है। मंडी जिले में पिछले 24 घंटों से जारी तेज बारिश ने नदियों और नालों का जलस्तर अचानक बढ़ा दिया है। इस विपदा में 3 लोगों की मौत हो गई है। धर्मपुर में देखते ही देखते पानी का सैलाब बाजार और बस अड्डे में घुस गया। धर्मपुर बस अड्डा पूरी तरह जलमग्न हो गया है। वहां खड़ी कई बसें पानी में बह गईं। बाजार की दर्जनों दुकानें और स्टॉल भी बहाव की चपेट में आ गए। लोगों के घरों में घुटनों तक पानी भर गया और सारा सामान बर्बाद हो गया।

भीलवाड़ा में 'असली बेटे' का फर्ज: मुस्लिम युवक ने हिंदू 'मां' की चिता को दी मुखाग्नि

भीलवाड़ा, राजस्थान: आस्था और इंसानियत की एक ऐसी मिसाल सामने आई है, जिसने हर किसी की आंखें नम कर दी हैं. राजस्थान के भीलवाड़ा में 67 साल की एक हिंदू महिला की मौत पर उनके 42 वर्षीय मुस्लिम 'बेटे' ने हिंदू रीति-रिवाजों से चिता को मुखाग्नि दी. यह घटना दिखाती है कि रिश्ते धर्म या मजहब से परे होते हैं, और इंसानियत सबसे बड़ा धर्म है.

यह कहानी है 67 वर्षीय शांति देवी और 42 वर्षीय असगर अली की. जंगी मोहल्ले में छोटी सी दुकान चलाने वाले असगर अली ने शांति देवी के लिए वह सब किया, जो शायद एक सगा बेटा भी नहीं कर पाता. दोनों परिवारों का रिश्ता 30 साल पुराना था, जो समय के साथ गहराता गया. असगर अली ने बताया कि उनके माता-पिता और शांति देवी के माता-पिता मेलों में छोटी-मोटी दुकानें लगाते थे, जिससे वे एक-दूसरे को अच्छी तरह से जानते थे.

एक परिवार की तरह रहे असगर और शांति देवी

2010 में पति के देहांत के बाद शांति देवी अपने बेटे के साथ असगर अली के पड़ोस में आकर रहने लगीं. दोनों परिवार एक ही मकान में किराए पर रहते थे. 2017 में असगर के पिता की मौत के बाद शांति देवी ने उनकी मां का एक बहन की तरह साथ दिया. लेकिन, 2018 में एक दर्दनाक हादसे ने शांति देवी से उनके बेटे को छीन लिया. एक जंगली जानवर के हमले में उनके बेटे की मौत हो गई. इस दुख की घड़ी में असगर का परिवार उनका सहारा बना.

असगर अली ने बताया, "2018 के बाद से शांति मां हमारे ही साथ रहने लगीं. वो मुझे अपने बेटे की तरह प्यार करती थीं." असगर भी उन्हें 'मासी मां' कहकर बुलाते थे. दो साल पहले जब असगर की अपनी मां का निधन हुआ, तो शांति देवी ने उन्हें अकेला महसूस नहीं होने दिया. वह हर वक्त असगर की चिंता करतीं, उनके खाने-पीने और कपड़े धोने तक का ध्यान रखती थीं. असगर कहते हैं कि शायद उनकी अपनी मां ने भी उनका इतना ख्याल नहीं रखा, जितना शांति मां ने रखा.

"हर जन्म में मुझे ऐसी ही मां मिले"

असगर बताते हैं कि शांति मां के सम्मान में उन्होंने अपने घर में मांसाहार खाना और बनाना बंद कर दिया था. ईद और दिवाली भी दोनों परिवार साथ-साथ मनाते थे. कुछ समय से शांति देवी बीमार चल रही थीं, और हाल ही में उनका निधन हो गया. असगर ने बिना किसी हिचकिचाहट के हिंदू रीति-रिवाजों से उनकी चिता को मुखाग्नि दी. अब वह उनकी इच्छा के अनुसार उनकी अस्थियां प्रयागराज के त्रिवेणी संगम या चित्तौड़गढ़ के मातृकुंडिया में विसर्जित करेंगे.

आंखों में आंसू लिए असगर अली ने कहा, "मां के बिना अब मैं लावारिस और बिल्कुल अकेला हो गया हूं." उन्होंने भावुक होकर कहा, "दुआ है मुझे हर जन्म में ऐसी ही मां मिले."

यह कहानी भीलवाड़ा के लोगों और सोशल मीडिया पर खूब सराहना बटोर रही है, जो दिखाती है कि धर्म से बढ़कर इंसानियत और रिश्तों की भावना है.

उच्च शिक्षा के लक्ष्य की प्राप्ति में मुक्त विश्वविद्यालय की भूमिका महत्वपूर्ण-राज्यपाल।

मुक्त विश्वविद्यालय के दीक्षान्त समारोह में उमा यादव को मिला कुलाधिपति स्वर्ण पदक।

28 हजार से अधिक शिक्षार्थियों को मिली उपाधि।

संजय द्विवेदी प्रयागराज।उ0 प्र0 राजर्षि टण्डन मुक्त विश्वविद्यालय प्रयागराज का 20वां दीक्षान्त समारोह सोमवार को सरस्वती परिसर स्थित अटल प्रेक्षागृह में आयोजित किया गया।दीक्षान्त समारोह की अध्यक्षता उत्तर प्रदेश की राज्यपाल एवं कुलाधिपति आनंदीबेन पटेल ने की।राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने अध्यक्षीय उद्बोधन में कहा कि उच्च शिक्षा के लक्ष्य की प्राप्ति में मुक्त विश्वविद्यालय की भूमिका महत्वपूर्ण है।समाज के कम से कम 50% युवाओं की पहुंच उच्च शिक्षा तक होनी चाहिए।इसमें मुक्त विश्वविद्यालय को अतिरिक्त प्रयास करने की आवश्यकता है।विश्वविद्यालय यह कार्य अपने क्षेत्रीय केन्द्रो के माध्यम से पूरा कर सकता है।दूरस्थ शिक्षा की गुणवत्ता के लिए ऑनलाइन सुविधाओं का अधिक से अधिक उपयोग किया जाना चाहिए।इस अवसर पर राज्यपाल ने बिगड़ते पर्यावरण पर अपनी चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि पर्यावरण संरक्षण हमारी सामूहिक जिम्मेदारी है।उन्होंने इस अवसर पर उच्च प्राथमिक विद्यालय बेरुई के बच्चों द्वारा पर्यावरण संरक्षण पर दी गई प्रस्तुति की सराहना की। राज्यपाल पटेल ने महिलाओं में बढ़ते सरवाइकल कैंसर से बचाव हेतु एचपीवी वैक्सीनेशन की मुहिम के लिए जन सहभागिता की अपील की। राज्यपाल ने जोर देकर कहा कि उन्होंने प्रदेश की महिलाओं को कैंसर से बचाव के लिए जो मुहिम चलाई है उसमें प्रशासनिक अधिकारी अपना सहयोग प्रदान करें।मुख्य अतिथि प्रो.उमा कांजीलाल कुलपति इंदिरा गांधी राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय नई दिल्ली ने आभासी रूप में दीक्षान्त भाषण देते हुए कहा कि इस समय युवा ही विकसित भारत का निर्माण कर सकते हैं।इसके लिए युवाओं को अपनी समस्त ऊर्जा का उपयोग देश के विकास के लिए करना चाहिए। प्रोफेसर कांजीलाल ने कहा कि इस दौर में भारत अंतरिक्ष विज्ञान कृषि सुरक्षा तथा विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी के कई क्षेत्रों में उल्लेखनीय उपलब्धियां हासिल कर रहा है।हमें भी इसमें अपना योगदान देना है।वर्तमान में ओ डी डी एल कृत्रिम मेधा मशीन लर्निंग एवं ऑनलाइन टीचिंग लर्निंग आदि शिक्षा के विस्तार और पहुंच को सुनिश्चित करने वाले प्रभावी और महत्वपूर्ण माध्यम उपलब्ध है।इन माध्यमों का प्रयोग करके हम राष्ट्रीय शिक्षा नीति के लक्ष्यों की प्राप्ति में महती भूमिका अदा कर सकते है। यह नीति भारतीय मूल्यो सांस्कृतिक विरासत और पारंपरिक ज्ञान के समावेश के साथ-साथ आधुनिकता और नवाचार को भी प्रोत्साहित करती है।विशिष्ट अतिथि योगेन्द्र उपाध्याय उच्च शिक्षा मंत्री उत्तर प्रदेश सरकार ने उपाधि एवं स्वर्ण पदक प्राप्त शिक्षार्थियों से कहा कि वैश्वीकरण के इस युग में उन्हें आधुनिक विज्ञान और तकनीक का ज्ञान अर्जित करना होगा। ऑनलाइन शिक्षा डिजिटल पुस्तकालय वर्चुअल लैब्स और स्मार्ट क्लासरूम जैसी सुविधाएं शिक्षा के स्वरूप को बदल रही है।उपाध्याय ने कहा कि मुक्त विश्वविद्यालय का महत्व इसी कारण और भी बढ़ गया है क्योंकि यह उन विद्यार्थियों तक दूरस्थ शिक्षा के माध्यम से शिक्षा पहुंचा रहा है।उच्च शिक्षा मंत्री ने कहा कि आने वाले समय में जलवायु परिवर्तन बेरोजगारी जनसंख्या वृद्धि पर्यावरण संकट और सामाजिक असमानता जैसी अनेक चुनौतियां हमारे सामने होंगी जिनके समाधान के लिए शिक्षित सजग और जिम्मेदार नागरिकों की आवश्यकता है।

विशिष्ट अतिथि रजनी तिवारी उच्च शिक्षा राज्यमंत्री उत्तर प्रदेश सरकार ने कहा कि शिक्षा का वास्तविक अर्थ ज्ञान को जीवन से जोड़ना है।उन्होंने उपाधि प्राप्त करने वाले शिक्षार्थियों को बधाई देते हुए कहा कि वह मूल्य और संस्कार को आत्मसात करते हुए अपने व्यक्तित्व को ऐसा बनाएं जो समाज और राष्ट्र के लिए उपयोगी हो।उन्होंने कहा कि विज्ञान और प्रौद्योगिकी ने न केवल हमारी जीवन शैली बदल दी है बल्कि शिक्षा के स्वरूप को भी नई दिशा दी है।तिवारी ने कहा कि भारत को विकसित राष्ट्र बनाने का सपना तभी साकार होगा जब युवा अपनी उर्जा ज्ञान और नवाचार से इसमें योगदान देंगे।20वें दीक्षान्त समारोह में विभिन्न विद्याशाखाओं में सर्वाधिक अंक प्राप्त करने वाले शिक्षार्थियों को 27 स्वर्ण पदक प्रदान किये गये जिनमें 15 स्वर्ण पदक छात्राओं तथा 12 स्वर्ण पदक छात्रों ने प्राप्त किए।दीक्षान्त समारोह में सत्र दिसम्बर-2024 तथा जून-2025 की परीक्षा के सापेक्ष उत्तीर्ण 28421 शिक्षार्थियों को उपाधि प्रदान की गयी जिसमें 17268 पुरूष 1 ट्रांस्जेंडर तथा 11152 महिला शिक्षार्थी हैं।इस अवसर पर उपाधियों एवं अंकपत्रों को डिजीलॉकर में अपलोड कर प्रसारित किया गया।20वें दीक्षान्त समारोह में कुलाधिपति स्वर्ण पदक राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध स्नातक विज्ञान की छात्रा उमा यादव को दिया।उमा ने बी.एस.सी. की परीक्षा प्रथम श्रेणी में उत्तीर्ण की तथा वे समस्त विद्याशाखाओं की स्नातक एवं स्नातकोत्तर परीक्षाओं में उत्तीर्ण समस्त स्नातक एवं परास्नातक शिक्षार्थियों में सर्वश्रेष्ठ रहीं।

इसके साथ ही राज्यपाल एवं कुलाधिपति ने विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक इस बार स्नातकोत्तर वर्ग में विद्याशाखाओं के 07 टापर्स को दिए।जिसमें मानविकी विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध एम.ए. (संस्कृत)की छात्रा सविता प्रजापति समाज विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक प्रयागराज क्षेत्रीय केंद्र से सम्बद्ध एम.ए. (राजनीति विज्ञान)के छात्र आदित्य तिवारी प्रबन्धन अध्ययन विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र प्रयागराज से सम्बद्ध एम.बी.ए.की छात्रा सृष्टि यादव कंप्यूटर एवं सूचना विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक प्रयागराज क्षेत्रीय केन्द्र से सम्बद्ध एम.सी.ए. के छात्र सुश्रुत कुमार पाण्डेय शिक्षा विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध एम.ए. (शिक्षाशास्त्र)के छात्र गिरजा शंकर विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र आगरा से सम्बद्ध एम.एस.सी.(जैव रसायन)के छात्र सोमेश भारद्वाज स्वास्थ्य विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र लखनऊ से सम्बद्ध एम0एस0सी0 (फूड एण्ड न्यूट्रीशन)की छात्रा नेहा कनौजिया प्रमुख रही।राज्यपाल एवं कुलाधिपति ने स्नातक वर्ग में भी विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक विद्याशाखाओं के 07 टापर्स को दिये।जिसमें मानविकी विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र लखनऊ से सम्बद्ध स्नातक (बी0ए0)के छात्र राजकमल नन्दा समाज विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध स्नातक (बी0ए0)के छात्र उत्कर्ष पाण्डेय प्रबन्धन अध्ययन विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र आजमगढ़ से सम्बद्ध स्नातक (बी0कॉम0)के छात्र प्रदुम्न चौहान कम्प्यूटर एवं सूचना विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध स्नातक (बी0सी0ए0) के छात्र सूरज कुमार शिक्षा विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध स्नातक (बी0एड0)की छात्रा श्वेता सिंह विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध स्नातक (बी0एस0सी0) की छात्रा उमा यादव स्वास्थ्य विज्ञान विद्याशाखा से विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र झांसी से सम्बद्ध स्नातक(बी.एस.सी.ह्यूमन न्यूट्रीशन) की छात्रा हुमैरा हलीम प्रमुख रहीं।दीक्षांत समारोह में राज्यपाल एवं कुलाधिपति ने12 मेधावी शिक्षार्थियों को दानदाता स्वर्ण पदक से सम्मानित किया। जिनमें बाबू ओमप्रकाश गुप्त स्मृति स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध बी0एड0 की छात्रा श्वेता सिंह जोहरा अहमद मिर्जा स्मृति स्वर्ण पदक प्रयागराज क्षेत्रीय केन्द्र से सम्बद्ध एम.सी.ए. की छात्रा अंकिता कुमारी कैलाशपत नेवेटिया स्मृति स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र प्रयागराज से सम्बद्ध एम.बी.ए.की छात्रा सृष्टि यादव स्व0 अनिल मीना चक्रवर्ती स्मृति स्वर्ण पदक स्नातक वर्ग में क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या़ से सम्बद्ध स्नातक कला के छात्र उत्कर्ष पाण्डेय स्व0 अनिल मीना चक्रवर्ती स्मृति स्वर्ण पदक स्नातकोत्तर वर्ग में क्षेत्रीय केन्द्र प्रयागराज से सम्बद्ध एम.ए.(राजनीति विज्ञान)के छात्र आदित्य तिवारी प्रो.एम.पी.दुबे पर्यावरण/गांधी चिन्तन एवं शान्ति अध्ययन उत्कृष्टता स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध स्नातक कला के छात्र उत्कर्ष पाण्डेय, प्रो.एम.पी.दुबे दिव्यांग मेधा स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केंद्र, अयोध्या से सम्बद्ध बी0एड0 की दामिनी सिंह महान राष्ट्रकवि श्रद्धेय पं0 सोहन लाल द्विवेदी स्मृति स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध एम0ए0(हिन्दी)के छात्र रत्नेश द्विवेदी स्वर्गीय प्रो.सुशील प्रकाश गुप्ता स्मृति स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध बी.एड.की छात्रा श्वेता सिंह संतोष कुमार दीक्षित स्मृति स्वर्ण पदक महिला वर्ग में क्षेत्रीय केन्द्र प्रयागराज से सम्बद्ध एम0बी0ए0 की छात्रा सृष्टि यादव स्व0 चारूल पाण्डेय स्मृति स्वर्ण पदक क्षेत्रीय केन्द्र लखनऊ से सम्बद्ध स्नातकोत्तर(फूड एण्ड न्यूट्रीशन)की छात्रा नेहा कनौजिया तथा स्व0 डॉ0 मुरली धर तिवारी स्मृति स्वर्णपदक क्षेत्रीय केन्द्र अयोध्या से सम्बद्ध बी0एस0सी0(स्नातक विज्ञान) की छात्रा उमा यादव प्रमुख रही।इस बार राज्यपाल के निर्देश पर दीक्षान्त समारोह के पूर्व विश्वविद्यालय द्वारा गोद लिए गांवों में स्थित आंगनबाड़ी केन्द्रो प्राथमिक/जूनियर विद्यालयों तथा माध्यमिक/उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों में भाषण चित्रकला एवं कहानी कथन प्रतियोगिताओं का सफलतापूर्वक आयोजन किया गया।विश्वविद्यालय द्वारा अंगीकृत गांवों में प्रतिभागियों ने प्रतियोगिताओं में काफी रुचि दिखाई।प्रतियोगिता में प्रथम तीन स्थान पाने वाले विजेताओं परी सिंह अंश अनामिका पटेल सृष्टि शुक्ला अन्तिमा पटेल तमन्ना भारतीया अदिति मौर्या सूरज साहू जान्हवी पीहू श्रेया पटेल सेजल मौर्य निहारिका मोहिनी पटेल अर्निका मौर्या आराध्या साहू गुंजन रिमझिम राम रतन अमित सरोज प्रिंसी पटेल आयुषी तिवारी तथा सिमर साहू को दीक्षान्त समारोह के अवसर पर कुलाधिपति आनंदीबेन पटेल द्वारा पुरस्कृत किया गया।गोद लिए गांव से एक स्कूली बच्चे सृष्टि शुक्ला ने राज्यपाल के समक्ष महिला सशक्तिकरण पर उद्बोधन प्रस्तुत किया।दीक्षान्त समारोह के अवसर पर आंगनबाड़ी केन्द्रों को विश्वविद्यालय की तरफ से कुलाधिपति के द्वारा किट भेंट किया गया।राज्यपाल ने इस अवसर पर जिलाधिकारी तथा मुख्य विकास अधिकारी को राज भवन की तरफ से पुस्तके प्रदान की तथा प्राथमिक विद्यालय को पुस्तकें भेंट की।इस अवसर पर बेरुई गांव के उच्च प्राथमिक विद्यालय के बच्चों द्वारा पर्यावरण से सम्बंधित गायन सह अभिनय प्रस्तुति की गयी।राज्यपाल की मौजूदगी में इलाहाबाद संग्रहालय से समझौता ज्ञापन(एम.ओ.यू.)भी किया गया।इसके अन्तर्गत मुक्त विश्वविद्यालय में संग्रहालय अध्ययन का कोर्स आरम्भ किया जाएगा।इस दौरान स्वास्थ्य विभाग की तरफ से पांच स्कूली छात्राओं को एचपीवी की वैक्सीन लगाई गई।दीक्षान्त समारोह भारतीय पारम्परिक परिधान में आयोजित किया गया।इस मौके पर कैबिनेट मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी महापौर गणेश केसरवानी विधायक गुरु प्रसाद मौर्य बाबूलाल तिवारी कुलपति प्रो.अखिलेश कुमार सिंह पूर्व कुलपति प्रोफेसर पृथ्वीश नाग महामण्डलेश्वर कौशल्यानंद गिरि टीना मां इलाहाबाद संग्रहालय के निदेशक राजेश प्रसाद उपेन्द्र सिंह एवं जिला प्रशासन के अधिकारीगण आदि उपस्थित रहे।

राज्यपाल ने प्रो0 राजेन्द्र सिंह (रज्जू भैया)विश्वविद्यालय के अष्टम दीक्षांत समारोह कार्यक्रम का किया शुभारम्भ।

दीक्षांत समारोह में कुल 191 विद्यार्थिंयों को पदक तथा कुल 92109 छात्र-छात्राओं को दी गयी उपाधि।

राज्यपाल ने 300 आंगनबाड़ी केन्द्रों को सुसज्जित करने के लिए प्री स्कूल किट का किया वितरण।

राज्यपाल ने उपाधि प्राप्त करने वाले सभी छात्र-छात्राओं को शुभकामनाएं देते हुए उनके उज्जवल भविष्य की कामना की।

विश्वविद्यालयों व कॉलजों को शोध कार्यो एवं उनकी उपयोगिता को बढ़ाये जाने का किया आह्वाहन।

शिक्षा समर्पण देशभक्ति की भावना से मिलती है राष्ट्र सेवा की प्रेरणा-राज्यपाल।

अनगिनत मनीषियों की भूमि युवा अपने ज्ञान नैतिकता व सेवा की परम्परा से बनाये इस पुण्य धरती को समृद्ध-राज्यपाल।

राज्यपाल ने विद्यार्थिंयों को एक लक्ष्य निर्धारित कर आगे बढ़ने तथा लक्ष्य प्राप्ति तक नियमित कठिन परिश्रम करने के लिए किया प्रेरित।

संजय द्विवेदी प्रयागराज।राज्यपाल उत्तर प्रदेश आनन्दीबेन पटेल सोमवार को प्रो0राजेन्द्र सिंह रज्जू भैया विश्वविद्यालय में आयोजित अष्टम दीक्षांत समारोह कार्यक्रम में सम्मिलित हुई।राज्यपाल ने दीक्षांत समारोह कार्यक्रम का शुभारम्भ किया।इस अवसर पर आयोजित दीक्षांत समारोह में परास्नातक स्नातक एवं व्यवसायिक शिक्षा के विभिन्न पाठ्यक्रमों के कुल 92109 विद्यार्थिंयों को उपाधि प्रदान की गयी।इसके साथ ही साथ आयोजित कार्यक्रम में विभिन्न विषयों में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले कुल 191 विधार्थिंयों को पदक प्रदान किया जिसमें 129 छात्राएं एवं 62 छात्र पदक प्राप्त किए।इस अवसर पर राज्यपाल ने गोद लिए गए गांवों के प्राथमिक विद्यालय में पढ़ने वाले प्राथमिक विद्यालयों के बच्चों को उपहार सामग्री का वितरण किया।राज्यपाल के द्वारा जिला प्रशासन की ओर से आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों हेतु उपलब्ध कराये गये 200 आंगनबाड़ी किट एवं विश्वविद्यालय की ओर से उपलब्ध कराये गये 100 किट कुल 300 किटों को आंगनबाड़ी केन्द्रों के लिए प्रदान किया गया।राज्यपाल ने विभिन्न विद्यालयों में करायी गयी प्रतियोगिताओं में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले बच्चों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया।इसके साथ ही विश्वविद्यालय के एवं अन्य विद्यालयों में अच्छा कार्य करने वाले कुछ शिक्षकों को सम्मानित किया गया। राज्यपाल ने राष्ट्रीय खेलों में पदक प्राप्त करने वाले खिलाड़ियों को पुरस्कार की धनराशि प्रदान किया और सम्मानित किया।राज्यपाल के द्वारा विश्वविद्यालय की स्मारिका का विमोचन किया गया।इस अवसर पर राज्यपाल ने अधिकारियों एवं शिक्षकों को उनके द्वारा स्वरचित पुस्तक चुनौतियां हमें पसंद है एवं इसके साथ चार अन्य पुस्तके प्रदान किए।कार्यक्रम में प्राथमिक विद्यालयों के बच्चों के द्वारा पर्यावरण सुरक्षा ही जीवन सुरक्षा है विषय पर आधारित-पेड़ बचाओं रे भइया पेड़ लगाओ गीत पर मनमोहक प्रस्तुती दी गयी।राज्यपाल आनन्दीबेन पटेल के द्वारा प्रो0 राजेन्द्र सिंह रज्जू भैया विश्वविद्यालय परिसर में पौधरोपण भी किया गया l

राज्यपाल ने अपने उद्बोधन में कहा कि आज दीक्षांत समारोह में लगभग 200 लोगो को उपाधियां मेडल दिए गए मैं उन सभी लोगो को बहुत-बहुत शुभकामनाएं देती हूं।आपने जो वर्षो तक मेहनत की है जो सीखा है इसके लिए आपको यह डिग्री और अवार्ड प्राप्त हुए है मैं इसके लिए सबसे पहले आपके माता-पिता को बधाई एवं शुभकामनाएं देती हूं एवं उनका अभिनंदन करती हूं क्योंकि आपकी बढ़ती उम्र के साथ उनकी जिम्मेदारियां एवं कठिनाईयां भी बढ़ती जाती है फिर भी आपके सपनों को पूरा करने एवं आगे बढ़ाने का प्रयास करते रहते है।राज्यपाल ने कहा कि आज के दीक्षांत समारोह में भी बेटिया मेडल व डिग्री प्राप्त करने में बेटो से आगे है, कहा कि आज नारी शक्ति आगे है और भविष्य में भी इसी प्रकार आगे बढ़ती रहेगी। उन्होंने कहा कि हमारा समाज नारी शक्ति की तरफ बढ़ रहा है।उन्होंने कहा कि आज का परिदृश्य बदल चुका है आगे बढ़ने के लिए सबको कड़ी मेहनत करनी पड़ेगी। दुनिया भर में प्रतिस्पर्द्धा बढ़ रही है समस्याओं के समाधान करने का प्रयास हो रहा है और आज भारत पूरी दुनिया को मार्गदर्शन व नेतृत्व प्रदान कर रहा है।राज्यपाल ने प्रधानमंत्री के द्वारा तात्कालिक समय में असम राज्य में किए गए इथेनॉल संयंत्र कार्यों को रेखांकित करते हुए विद्यार्थियों को नए शोध के आयाम एवं क्षेत्र को खोजने हेतु प्रेरित किया।उन्होंने कहा कि आज विश्वविद्यालयों को रिसर्च व पेंटेंट पर ध्यान देने की आवश्यकता है।कहा कि संसाधनों का उपयोग जनकल्याण के लिए कैसे किया जा सकता है इसके बारे में सोचना चाहिए।उन्होंने कहा कि हमारी समस्यायें क्या है इसका समाधान क्या है इसके समाधान के लिए हमें क्या करना चाहिए कहां क्या-क्या संसाधन है जिनका हम उपयोग कर भारत को आगेे बढ़ाने का प्रयास कर सकते है।राज्यपाल ने कहा कि हमें भारत में नया ताजमहल बनाने की आवश्यकता नहीं है अपितु पूरे विश्व में भारत को ताजमहल की तरह चमकाना है।

उन्होंने विद्यार्थिंयों में जोश भरते हुए कहा कि भारत युवाओं का देश है और भारत को विकसित राष्ट्र बनाने के लिए आने वाले 25 वर्ष आपके लिए महत्वपूर्ण हैं। यदि युवाशक्ति संकल्प ले तो पूरी दुनिया बदल सकती है। परंतु इसके लिए शिक्षा समर्पण देश के विकास की भावना देशभक्ति की आवश्कता होती है और जब तक हम यह अपने जीवन में नहीं उतारेंगे तब तक राष्ट्र की सेवा हम नहीं सकते हैं। आप अपनी योग्यता ज्ञान व सेवा को केवल अपने स्वयं व परिवार तक सीमित न रखकर राष्ट्रसेवा भाव से अपनी योग्यता को पूरे देश में प्रसारित करे जिससे पूरे देश का विकास हो सके।राज्यपाल ने कहा कि प्रयागराज की पावन धरती पर मां गंगा यमुना एवं सरस्वती के त्रिवेणी संगम में स्नान यहां की मिट्टी पानी में करोड़ो लोगो की आस्था है।उन्होंने कहा कि संगम की यह भूमि अनगिनत मनीषियों की विरासत है।अब आप लोगो की बारी है कि आप अपने ज्ञान नैतिकता व सेवाभाव की परम्परा को कैसे समृद्ध करते है।उन्होंने कहा कि चुनौतियों से आपका ज्ञान व आत्मविश्वास बढ़ेगा आपके जीवन में कठिनाईयां आएंगी इससे डरने की आवश्यकता नहीं है, बल्कि अपने लक्ष्य को तय कर कठिनाईयों से मार्ग प्रशस्त करते हुए योजना बनाकर आगे बढिए और उस लक्ष्य को प्राप्त करिए।राज्यपाल ने कहा कि दीक्षांत समारोह आपको प्रमाणपत्र डिग्रिया एवं मेडल देने के साथ ही आपको यह स्मरण भी कराता है कि अब आपकी जिम्मेदारी पहले से कहीं अधिक बढ़ गयी है।

विश्वविद्यालय की पहचान केवल उसके भवनो डिग्रियों से नहीं है बल्कि उसके अनुशासन शोधकार्य सामाजिक चेतना और अन्तर्राष्ट्रीय दृष्टिकोण में निहित होती है।शिक्षा तभी सार्थक होती है जब विद्यार्थी गुरू के सानिध्य में बैठकर न केवल पाठ्यपुस्तक से बल्कि उनके अनुभव और जीवनदर्शन से सीखते है।कहा कि अध्यापको का यह दायित्व बनता है कि वे विद्यार्थिंयों के सानिध्य में बैठे और उनसे अच्छे सम्बन्ध बनाते हुए उन्हें सिखाने का कार्य करे।राज्यपाल महोदया नेे विद्यार्थियों की 75 प्रतिशत की उपस्थिति की उपयोगिता को इंगित किया तथा 25 प्रतिशत अनुपस्थिति का व्यक्तित्व विकास में उपयोगिता पर विशेष बल दिया।उन्होंने विश्वविद्यालयों को समय से अपने यहां शैक्षिक सत्र परीक्षाओ का आयोजन कर समय से रिजल्ट देने एवं बायोमैक्ट्रिक उपस्थिति सिस्टम बनाने की व्यवस्था करने के लिए कहा।राज्यपाल ने झोपड़ पट्टी में रहने वाले 80 बच्चों की शिक्षा की व्यवस्था कस्तूरबा गांधी विद्यालय में स्वच्छता एवं कमियों को दूर कराने भिक्षा मांगने वाले बच्चों का स्कूलों में एडमिशन कराने बीच में अपनी पढ़ाई को छोड़ने वाले बच्चों को इकट्ठा कर राजभवन के विद्यालय में एडमिशन करवायें जाने और वहां पढ़ रहे बच्चों की अच्छी शिक्षा के बारे में उनके द्वारा किए गए प्रयासों को बताते हुए कहा कि इसी प्रकार सभी को इनके लिए ध्यान दिए जाने की आवश्यकता है।राज्यपाल ने कहा कि आंगनबाड़ी केन्द्रों में सभी आवश्यक साधन एवं व्यवस्थायें पहुंचायी जा रही है। उन्होंने कहा कि अध्यापकों का गुु्रप बनाकर जिन आंगनबाड़ी केन्द्रो में किट प्रदान की गयी है वहां जाकर देखे कि किस प्रकार काम हो रहा है क्या परिवर्तन कुछ आया है आंगनबाड़ी केन्द्रो में और क्या समस्या है इन सब की सूची तैयार कर जिलाधिकारी को उपलब्ध कराकर उन समस्याओं को दूर कराये जाने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि सरकार रिसर्च के लिए अनुदान देती है और विश्वविद्यालय शोध के क्षेत्र में अच्छा कार्य भी कर रहे है लेकिन अच्छे शोध कार्यों एवं फाइंडिंग का सही उपयोग नहीं हो पा रहा है इस विषय पर कार्य करने की आवश्यकता है।राज्यपाल ने दीक्षांत समारोह के अवसर पर पुनः सभी विद्यार्थिंयों को बधाई देते हुए विद्यार्थिंयों से एक लक्ष्य निर्धारित कर उसी के अनुरूप आगे बढ़ने के लिए कहा है।

प्रयागराज की पवित्र भूमि को आगे बढ़ाने के लिए हमेशा सतत् रहे जागृत रहे और कुछ न कुछ योगदान अवश्य करते रहे। उन्होंने कहा कि मनुष्य को मनुष्य बनाया इसी ध्येय वाक्य को आप आगे प्रसारित करे।इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में लोक सेवा आयोग के अध्यक्ष संजय श्रीनेत्र ने दीक्षांत समारोह में मेडल व उपाधि प्राप्त करने वाले सभी छात्र-छात्राओं को शुभकामनाएं एवं बधाई देते हुए विद्यार्थियों के उज्जवल भविष्य की कामना की।उन्होंने विश्वविद्यालयों को शिक्षा के साथ-साथ सामाजिक सरोकारों से भी ओतप्रोत बताते हुए संस्कारित शिक्षा की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने कहा कि शिक्षा को चरित्र का उत्प्रेरक होना चाहिए और संस्कारित ज्ञान होना अच्छा है।उन्होंने कहा कि हमें हर कार्य में उत्कृष्टता पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है क्योंकि उत्कृष्टता की जितनी साधना करेंगे उतना ही हमें सम्मान मिलेगा।कैबिनेट मंत्री उच्च शिक्षा विभाग योगेन्द्र उपाध्याय ने अपने उद्बोधन में प्रो.राजेन्द्र सिंह के जीवन चरित्र पर विस्तार से प्रकाश डालते हुए कहा कि उनका जीवन हम सब के लिए एक प्रेरणा स्रोत है और हमें आगे बढ़ने के लिए उनसे प्रेरणा लेनी चाहिए।मंत्री ने कहा कि यह शिक्षण संस्थान प्रयागराज जैसे पौराणिक स्थल में है जो भारतीय संस्कृति एवं सभ्यता की मसाल को वर्षों वर्ष से जलाए हुए हैं।भारतीय ज्ञान परंपरा सामाजिक समरसता का संदेश देने वाला यह शहर है। अभी हाल ही में यहां पर विश्व का सबसे बड़े धार्मिक मेले महाकुंभ का आयोजन सकुशल संपन्न हुआ जहां पर 65 करोड़ से अधिक लोगों ने प्रयागराज की धरती पर आकर समागम किया। पूरे विश्व में इस आयोजन को अचंभित होकर देखा ऐसे क्षेत्र के आप लोग वासी है।गंगा जमुना एवं अदृश्य सरस्वती का संगम अक्षय वट यहां पर है।मंत्री ने कहा कि आज आप लोगों का दीक्षांत समारोह है यह आप लोगों को नवजीवन नई दिशा देने वाला एक समागम है।

उन्होंने मेडल एवं डिग्रियां प्राप्त करने वाले सभी विद्यार्थियो उनके माता-पिता गुरुजनों को शुभकामनाएं एवं बधाई देते हुए विद्यार्थियों के उज्जवल भविष्य की कामना की।उन्होंने कहा कि माता-पिता गुरुओं के आशीर्वाद एवं सहयोग श्रम के बिना आप यह मुकाम हासिल नहीं कर सकते।उन्होंने विद्यार्थियों को जीवन पर्यंत इसे याद रखने के लिए कहा।उन्होंने कहा कि आज आप लोगों को उपाधियां मिली है इसकी उपयोगिता समाज एवं राष्ट्र के लिए बने यह आपका लक्ष्य होना चाहिए। उन्होंने कहा कि इस देश ने आपको बहुत कुछ दिया है इसलिए हमेशा व्यक्तिगत हित राष्ट्रहित में सम्मिलित रहे।यह संसाधन जिससे आपने उपाधि प्राप्त की है यह इस देश की ही देन है।हमें अपने स्वहित एवं राष्ट्रहित के साथ आगे बढ़ना है। उन्होंने कहा कि स्वहित एक कालखंड तक जीवित रहता है लेकिन राष्ट्रहित अनादिकाल तक चलता है।राज्य मंत्री उच्चशिक्षा विभाग रजनी तिवारी ने दीक्षांत समारोह के अवसर पर अपने उद्बोधन में आज डिग्रियां प्राप्त करने वाले विद्यार्थियो उनके माता-पिता शिक्षकों को बहुत-बहुत बधाई एवं शुभकामनाएं देते हुए उनके उज्जवल भविष्य की कामना करते हुए कहा कि दीक्षांत समारोह हमारे छात्र छात्राओं की उपलब्धियो के उत्सव का दिन है।आज आपने जो उपलब्धियां एवं डिग्रियां प्राप्त की है यह आपके कठिन परिश्रम त्याग और तपस्या का प्रतिफल है।देश और प्रदेश के निर्माण में आप इनका उपयोग करेंगे यह आपकी जिम्मेदारी है।

उन्होंने कहा कि आज भारत विश्व मंच पर उभरती शक्ति के रूप में देखा जा रहा है।विज्ञान प्रौद्योगिकी स्टार्टअप स्वास्थ्य पर्यावरण और सामाजिक सुधार सहित हर क्षेत्र में युवाओं के लिए संभावनाएं हैं।उन्होंने कहा कि मुझे आशा है कि आप इन अवसरों का लाभ उठाकर अपने भविष्य को सवारेगे तथा देश और प्रदेश के प्रगति में भी अपना महत्वपूर्ण योगदान देंगे। उन्होंने कहा कि आज प्रधानमंत्री के नेतृत्व में हम विकसित देश की ओर आगे बढ़ रहे है।प्रधानमंत्री ने कहा था कि वर्ष 2047तक हमारा देश विकसित देश बनेगा तो उसमें सबसे महत्वपूर्ण योगदान हमारे युवाओं का होगा।इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा था कि अब बेटियों की सामर्थ्य घर तक ही सीमित नहीं है बल्कि बेटियों की सामर्थ्य देश की फिजा व दिशा को बदलने वाली है। उन्होंने कहा कि आज देश व प्रदेश के सभी विश्वविद्यालय अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं।मुख्यमंत्री के नेतृत्व में प्रदेश की शिक्षा व्यवस्था मजबूत हुई है।

मंत्री ने कहा कि विकसित देश की परिकल्पना बिना उत्तर प्रदेश के सम्भव नहीं है।इस अवसर पर राजेन्द्र सिंह(रज्जू भइया)विश्वविद्यालय के कुलपति अखिलेश कुमार सिंह ने विश्वविद्यालय की शैक्षणिक उपलब्धियों के बारे में बताते हुए कहा कि आज 739 कालेज इस विश्वविद्यालय से सम्बद्ध है तथा 5 लाख से अधिक छात्र-छात्राएं शिक्षा ग्रहण कर रहे है।उन्होंने कहा कि संकल्प निष्ठा व सामूहिक प्रयास से राष्ट्रीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद(नैक)द्वारा विश्वविद्यालय को ए ग्रेड प्रदान किया गया है जो विश्वविद्यालय की निरंतर प्रगति शोध संस्कृति नवाचार और सामाजिक उत्तरदायित्व की भावना को दर्शाता है।इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नंदी जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा कुल सचिव विनीता यादव विश्वविद्यालय के आचार्यगण व छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे।

बलिया में राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ के आह्वान पर शिक्षकों ने टीईटी अनिवार्यता के खिलाफ भरी हुंकार

संजीव सिंह बलिया। अखिल भारतीय राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ के आह्वान पर देश के समस्त जनपदों में शिक्षकों ने टीईटी परीक्षा की अनिवार्यता के खिलाफ आवाज उठाई। इसी क्रम में बलिया में भी राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ के जिला संयोजक राजेश कुमार सिंह के नेतृत्व में भारत सरकार से तत्काल इस निर्णय को वापस लेने और शिक्षकों की सेवा सुरक्षा एवं आजीविका संकट से राहत दिलाने हेतु जिलाधिकारी के माध्यम से प्रधानमंत्री को ज्ञापन सौंपा गया। जिला संयोजक राजेश कुमार सिंह ने कहा कि जब उनकी नियुक्ति हुई थी, तब सभी सरकारी नियमों का पालन करते हुए नियुक्ति हुई थी। शिक्षा का अधिकार अधिनियम-2009 के बाद वर्ष 2010 से टीईटी अनिवार्य किया गया था, लेकिन अब 20-25 वर्षों की सेवा के बाद नियम बदलकर शिक्षकों पर टीईटी परीक्षा थोपना न्यायालय का अन्यायपूर्ण निर्णय है। उन्होंने प्रधानमंत्री से आग्रह किया कि शिक्षकों के सम्मान और उनके पवित्र शिक्षण कार्य का अपमान न हो, और तुरंत उनका गौरव वापस दिलाया जाए। जिला सहसंयोजक पुष्पेन्द्र सिंह ने कहा कि आज के ज्ञापन में शिक्षक समुदाय की व्यथा और मांगों को पूरी निष्ठा के साथ शामिल किया गया है। उन्होंने सरकार से पुनः आग्रह किया कि शिक्षकों की सेवा सुरक्षा और सम्मान को बनाए रखने के लिए इस महत्वपूर्ण मुद्दे पर तुरंत सकारात्मक कदम उठाए जाएं। जिला सहसंयोजक प्रमोद कुमार सिंह ने कहा कि न्यायालय का यह फैसला शिक्षक विरोधी है और बिना शिक्षकों की बात सुने एकतरफा निर्णय है। अगर आवश्यकता पड़ी तो शिक्षक संघर्ष के लिए दिल्ली तक कूच करेंगे। शिक्षकों के सम्मान के साथ समझौता नहीं होने दिया जाएगा। सहसंयोजक ज्ञान प्रकाश उपाध्याय ने बताया कि उच्चतम न्यायालय ने बिना नियमों को देखे मनमाना फैसला सुनाया है, जबकि भारत सरकार के राजपत्र में स्पष्ट है कि 2010 से पहले नियुक्त अध्यापकों के लिए टीईटी अनिवार्य नहीं था। इस फैसले से पूरे शिक्षक समाज में निराशा फैली है, जो शिक्षा कार्यों पर भी असर डालेगी। उन्होंने प्रधानमंत्री से अनुरोध किया कि इस फैसले पर पुनर्विचार किया जाए ताकि शिक्षकों की निराशा खत्म हो सके। इस अवसर पर समीर कुमार पाण्डेय, अमरेंद्र सिंह, रामअशीष यादव, ज्ञान प्रकाश उपाध्याय, संजीव कुमार सिंह, अकीलुर्रहमान खान, राजेश सिंह, विनय राय, राकेश कुमार मौर्य, धर्मेन्द्र गुप्ता, कृष्णानंद पाण्डेय, ओंकारनाथ सिंह, राजीव सिंह, उमेश राय, अभिषेक सिंह, गणेश यादव, मुकेश सिंह, संजीव रंजन, राघवेंद्र सिंह, अमरेश चतुर्वेदी, चंदन गुप्ता, दिग्विजय सिंह, राकेश गुप्ता, कर्ण प्रताप सिंह, अनिल सिंह, रजनीश चौबे, अमित नाथ तिवारी, सतीश कुशवाहा, शीतांशु वर्मा, सतीश त्रिपाठी, नीतीश राय, डॉ. विनय भारद्वाज, अभिषेक राय, अंगद वर्मा, अमित यादव, सुशील दुबे, बब्बन यादव, कुलभूषण त्रिपाठी, अभिषेक तिवारी, पुनीत सिसोदिया, सुदीप तिवारी, रामप्रवेश राम, संजय सिंह, शुभम सिंह, संतोष पाण्डेय, अजय वर्मा, अभय सिंह, अशोक सिंह, रवि यादव, विनोद यादव, राजकुमार यादव, अजय सिंह, धनजी प्रसाद, संजय कुमार, श्रीकांत मिश्रा, अशोक तिवारी, सत्येन्द्र चौबे, कविता सिंह समेत सैकड़ों शिक्षक उपस्थित थे।