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पत्र में झलका सीता सोरेन का पीड़ा और दर्द, बाबूलाल मरांडी ने कहा झारखंड की दुर्दशा और अपनी उपेक्षा से आहत होकर छोड़ा झामुमो

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष व पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी ने सीता सोरेन द्वारा झामुमो छोड़ भाजपा की सदस्यता ग्रहण करने का स्वागत किया है। झामुमो छोड़ने के फैसले पर सीता सोरेन के द्वारा झामुमो प्रमुख शिबू सोरेन को लिखे पत्र पर बाबूलाल मरांडी ने कहा, उसमें उनकी पीड़ा व दर्द स्पष्ट झलक रहा है। सीता सोरेन अपनी पार्टी और परिवार के सदस्यों से वर्षों से प्रताड़ित हो रही थीं।

बाबूलाल मरांडी ने कहा सीता सोरेन शिबू सोरेन की बड़ी बहू और स्व दुर्गा सोरेन की पत्नी हैं। दुर्गा सोरेन ने छाया की तरह झारखंड आंदोलन में गुरुजी का साथ दिया था। यदि दुर्गा सोरेन जीवित होते तो झामुमो में मुख्यमंत्री के उम्मीदवार होते।

लेकिन सीता सोरेन की पीड़ा यही है कि दुर्गा सोरेन के संघर्ष को भुला दिया गया। और जिन्होंने कोई संघर्ष नही किया वे शीर्ष पर पहुंच रहे। इसलिए सीता सोरेन की नाराजगी स्वाभाविक है।

सीता सोरेन पार्टी के कार्य कलापों के साथ साथ राज्य सरकार से भी खफा चल रही थी। उन्होंने लगातार सड़क से सदन तक राज्य सरकार द्वारा किए जा रहे जल ,जंगल,जमीन,खान खनिज, बालू, पत्थर की लूट पर मुखर होकर सवाल खड़ा किया है। उन्होंने खुलकर अत्याचार और भ्रष्टाचार का विरोध किया।

उन्होंने कहा कि सीता जी पीएम मोदी के कार्यों से प्रभावित हो कर भाजपा में शामिल हुई है। भाजपा आदिवासी, दलित, पिछड़े, महिला,वंचित सभी वर्गों के विकास केलिए समर्पित है। सीता सोरेन के भाजपा में आने से और मजबूत होगी पार्टी। झारखंड की 14लोकसभा सीट एनडीए के खाते में आएगी तथा देश में फिर एकबार मोदी सरकार का संकल्प 400पार के साथ पूरा होगा।

कांग्रेस और झामुमो के लोगो का भाजपा में शामिल होने का सिलसिला जारी


कांग्रेस ओबीसी प्रकोष्ठ के प्रदेश संयोजक, गढ़वा के हरिशंकर प्रसाद और मेट्रो गली रांची निवासी और झामुमो के पूर्व नेता महेश प्रसाद सोनी ने आज भाजपा प्रदेश अध्यक्ष व पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी के समक्ष भाजपा की सदस्यता ग्रहण की।

इस अवसर पर प्रदेश महामंत्री मनोज कुमार सिंह, सरोज सिंह, सुबोध सिंह गुड्डू, शिवपूजन पाठक, बिपिन सिंह गढ़वा जिला अध्यक्ष ठाकुर प्रसाद महतो, मुकेश निरंजन सिन्हा, दुर्गा जौहरी आदि उपस्थित थे।

वही आज मोरहाबादी आवास में मुख्य संरक्षक खरवार आदिवासी एकता संघ के कुंवर सिंह जो गढ़वा जिला निवासी है, उन्होंने ने भी भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी के समक्ष भाजपा का दामन थामाl

सीता सोरेन को भाजपा में शामिल होने पर, झामुमो ने कहा कोई फर्क नही, भाजपा यूज एंड थ्रो वाली पार्टी है


राँची: झारखंड मुक्ति मोर्चा की रही जामा विधायक सीता सोरेन ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है। लगातार पार्टी से नाराज चल रही थी सीता सोरेन। पारिवारिक तालमेल की कमी के कारण उन्होंने इस्तीफा दिया।

हालाकि सीता सोरेन ने अपने इस्तीफे में उपेक्षा का आरोप लगाते हुए लिखा था आदरणीय गुरुजी बाबा केंद्रीय अध्यक्ष, झारखंड मुक्ति मोर्चा. मैं सीता सोरेन, झारखंड मुक्ति मोर्चा की केंद्रीय महासचिव एवं सक्रिय सदस्य से इस्तीफा प्रस्तुत कर रही हूं।

उन्होंने कहा है कि मेरे पति दुर्गा सोरेन ने आंदोलन में अग्रणी भूमिका निभाने के बावजूद मेरा परिवार लगातार उपेक्षा का शिकार रहा है। हालाकि यह नर्जगी काफी दिनों से चल रहे थी। गुरुजी शिबू सोरेन ने भी सब को एकजुट रखने का भरसक प्रयास किया था। पर ऐसा हो न सका। आखिरकार सीता भाजपा में शामिल हो ही गई।

सीता सोरेन के भाजपा में शामिल होने के बाद झामुमो ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा स्वर्गीय दुर्गा सोरेन के देहांत के बाद पार्टी ने सीता सोरेन को पार्टी में जगह देते हुए तीन बार चुनाव जीतने का काम किया साथ ही साथ उन्हें पार्टी का केंद्रीय महासचिव का पद भी दिया। लेकिन जो मन बना लिया है उन्हें कोई कुछ नहीं कर सकता।

झामुमो के नेता सुप्रियो भट्टाचार्य ने भाजपा को यूज एंड थ्रो वाली पार्टी बताया। और कई राज्यों के नेताओं का उदाहरण देते हुए बताया कि किस तरह उनकी जब जरूरत थी तब तक उनका उसे किया उसके बाद उन्हें अलग कर दिया। 

झामुमो ने कहा कि सीता सोरेन के भाजपा में जाने चुनाव के कोई फर्क नहीं पड़ेगा, हा इतना है कि एक वोट हमारा कम पड़ जाएगा। इसके साथ ही सीता सोरेन को उन्हें भाजपा में शामिल होने की शुभकामनाएं दी। भाजपा में शामिल होने के साथ ही देखने वाली बात होगी कि क्या सीता सोरेन को लोकसभा का टिकट भाजपा से मिलता है या नहीं, इसके लिए इंतजार करना होगा।

शिबु सोरेंन के परिवार में क्यों हुई बगावत,क्या थी सीता सोरेन की नाराजगी का वजह...?


झारखंड डेस्क

सोरेन परिवार में अंततः वही हुआ जिसकी आशंका थी। वैसे अभी वक्त था कि मुसीबत के क्षण परिवार एक जुट रहे और मुसीबतों का मुकाबला करे लेकिन दिशोम गुरु शिबू सोरेन अपने परिवार को बांध कर नही रख सके। एक तरफ हेमन्त सोरेन  ईडी के गिरफ्त में, शिबू सोरेन पर भी आय से अधिक सम्पति का मामला चल रहा है।वहीं शिबू सोरेन की बड़ी बहु और पूर्व सीएम हेमन्त सोरेन की बड़ी भाभी सीता सोरेन ने बगावत कर दी है।

इसकी आशंका लंबे समय से जताई जा रही थी। सीता सोरेन ने झारखंड मुक्ति मोर्चा की सदस्यता और विधायक पद से इस्तीफा दे दिया है। पिछले कई महीनों से सीता सोरेन के नाराज होने की खबरें आ रहीं थीं और अंतत: सीता ने अपना 'दुख' जाहिर करते हुए इस्तीफा दे दिया। 

सीता सोरेन ने बताई इस्तीफे की वजह?

शिबू सोरेन को भेजे अपने इस्तीफे में सीता सोरेन ने कहा है कि - ''अत्यन्त दुःखी हृदय के साथ अपना इस्तीफा पेश कर रही हूँ । उनका कहना है कि उनके पति दुर्गा सोरेन के निधन के बाद उनके परिवार को अलग-थलग कर दिया गया। उन्होंने पार्टी के लिए अपने पति के योगदान का जिक्र करते हुए लिखा, 'मेरे स्वर्गीय पति, श्री दुर्गा सोरेन, जो कि झारखंड आंदोलन के अग्रणी योद्धा और महान क्रांतिकारी थे, उनके निधन के बाद से ही मैं और मेरा परिवार लगातार उपेक्षा का शिकार रहें है। 

पार्टी और परिवार के सदस्यों द्वारा हमे अलग-थलग किया गया है, जो कि मेरे लिए अत्यंत पीड़ा दायक रहा है। मैंने उम्मीद की थी कि समय के साथ स्थितियां सुधरेंगी, लेकिन दुर्भाग्यवश ऐसा नहीं हुआ। झारखंड मुक्ति मोर्चा, जिसे मेरे स्वर्गीय पति ने अपने त्याग समपर्ण और नेतृत्व क्षमता के बल पर एक महान पार्टी बनाया था, आज वह पार्टी नहीं रहीं मुझे यह देख कर गहरा दुःख होता है कि पार्टी अब उन लोगों के हाथों में चई गई है जिनके दृष्टिकोण और उद्देश्य हमारे मूल्यों और आदर्शों से मेल नहीं खाते।'

सीता सोरेन ने लगाया अपने खिलाफ साजिश का आरोप

सीता ने अपने खिलाफ साजिश रचे जाने का भी आरोप लगाया है। उन्होंने कहा, 'श्री शिबू सोरेन (गुरुजी बाबा के) अथक प्रयासों के बावजूद जिन्होने हम सभी को एक जुट रखने के लिए कठिन परिश्रम किया, अफसोस कि उसके प्रयास भी विफल रहें मुझे हाल ही में यह ज्ञात हुआ है कि मेरे और मेरे परिवार के खिलाफ भी एक गहरी साजीस रची जा रहीं है। मै अत्यन्त दुःखी हूं। मैंने यह दृढ़ निश्चय किया है कि मुझे झारखंड मुक्ति मोर्चा और इस परिवार को छोड़ना होगा।'

 सीता सोरेन की नाराजगी का वजह

दरअसल सीता सोरेन लंबे समय से पार्टी में खुद को उपेक्षित मान रहीं थीं। उनका मानना था कि झारखंड मुक्ति मोर्चा के लिए शिबू सोरेन के तीनों बेटों में उनके पति दुर्गा सोरेन ने सबसे अधिक मेहनत की थी। 

दुमका जिले की जामा सीट से विधायक सीता सत्ता में भागीदारी नहीं मिलने से नाखुश थीं। सीता सोरेन अक्सर अनौपचारिक बातचीत में अपनी उपेक्षा का इजहार करती थीं। 

हालांकि, झामुमो में उन्हें केंद्रीय महासचिव का पद भी दिया गया था, लेकिन संगठन के फैसलों में उन्हें अपेक्षित महत्व नहीं दिया गया।

मंत्री पद से भी रखा गया वंचित

हेमंत सोरेन के जेल जाने के बाद चंपाई सोरेन सरकार के गठन के समय से ही सीता सोरेन नाराज चल रहीं थीं। खबरें हैं कि कहीं न कहीं खुद को हाशिए पर जाता मानकर उन्होंने इस तरह का निर्णय लिया है। चंपाई सरकार में सोरेन परिवार के तीसरे विधायक बसंत सोरेन को मंत्री बनाया गया, लेकिन सीता की उम्मीदों को एक बार फिर झटका लगा।  

क्या देवरानी कल्पना से थी दिक्कत?

बताया जाता है कि सीता सोरेन अपनी छोटी देवरानी कल्पना सोरेन को दी जा रही अहमियत से भी नाराज थीं। भ्रष्टाचार के केस में हेमंत सोरेन के जेल जाने से पहले जब नए विकल्पों पर विचार किया जा रहा था, तब कल्पना सोरेन को मुख्यमंत्री बनाए जाने चर्चा भी जोर-शोर से चल रही थी। तीन बार की विधायक सीता सोरेन को राजनीति में नई नवेली कल्पना का नेतृत्व मंजूर नहीं था। सीता ने खुलकर विरोध करना शुरू कर दिया। यही वजह है कि परिवार में फूट की आशंका को देखते हुए हेमंत सोरेन कल्पना को सीएम नहीं बना पाए और राज्य की कमान चंपाई सोरेन को दी गई। हालांकि, पिछले कुछ समय से जिस तरह कल्पना ने ना सिर्फ राजनीति में एंट्री की और पति की जगह संगठन का कामकाज अपने हाथ में ले लिया उससे सीता असहज थीं और अलग होने का फैसला कर लिया।

लोकसभा चुनाव से पहले जेएमएम में खटपट, जामा विधायक सीता सोरेन ने पार्टी से दिया इस्तीफा


झारखंड मुक्ति मोर्चा को मंगलवार को बड़ा झटका लगा। जामा विधायक सीता सोरेन ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है। लगातार पार्टी से नाराज चल रही थी सीता सोरेन।

उन्‍होंने अपने त्‍यागपत्र में उपेक्षा का आरोप लगाया है। सीता सोरेन ने अपने इस्तीफा में लिखा कि आदरणीय गुरुजी बाबा केंद्रीय अध्यक्ष, झारखंड मुक्ति मोर्चा. मैं सीता सोरेन, झारखंड मुक्ति मोर्चा की केंद्रीय महासचिव एवं सक्रिय सदस्य से इस्तीफा प्रस्तुत कर रही हूं।

उन्होंने कहा है कि मेरे पति दुर्गा सोरेन ने आंदोलन में अग्रणी भूमिका निभाई थी, लेकिन हमारे परिवार को अब अलग-थलग कर दिया गया है। मेरा परिवार लगातार उपेक्षा का शिकार रहा है। हमें लगा कि हमारी स्थिति सुधरेगी लेकिन ऐसा नहीं हुआ। मेरे पति दुर्गा सोरेन ने बहुत मेहनत से पार्टी का निर्माण किया था। हमें लगा कि हमारी स्थिति सुधरेगी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। मेरे पति दुर्गा सोरेन ने बहुत मेहनत से पार्टी का निर्माण किया था लेकिन अब पार्टी उनलोगों के हाथ में चली गई है, जिनके विचारधारा से पार्टी से मेल नहीं खाती है।

सीता सोरेन यह भी कहा कि गुरुजी शिबू सोरेन ने हम सब को एकजुट रखने का भरसक प्रयास किया। लेकिन मुझे अफसोस है कि उनका प्रयास भी काम नही आया। हाल ही में मुझे अहसास हुआ कि मेरे और मेरे परिवार के खिलाफ गहरी साजिश रची जा रही है। जामा विधायक सीता सोरेन ने झामुमो सुप्रीमो को शुक्रिया अदा कर उन्हें शुभकामनाएं दी है। साथ ही साथ उन्होंने यह आग्रह भी किया है कि उनके इस्तीफे को स्वीकार कर लिया जाए।

आज DSP प्रमोद मिश्रा पहुंचे ईडी दफ्तर, कल अभिषेक प्रसाद से ED की लंबी पूछताछ


हटिया डीएसपी प्रमोद कुमार मिश्रा पहुंचे ईडी दफ्तर। साहिबगंज में हुए अवैध खनन के मामले में ईडी प्रमोद मिश्रा से कर रही है पूछ ताछ। 

बता दें कि अवैध खनन की जांच के दौरान बरहरवा टोल विवाद का मुख्य कारण वैध-अवैध खनिजों की ढुलाई को ईडी ने कारण माना था। वहीं खनन क्षेत्र से खनिजों को निकाल कर मुख्य मार्ग तक पहुंचाने के लिए बरहरवा पंचायत के टोल से होकर गुजरना पड़ता था। इसी को लेकर बरहरवा टोल पर कब्जा करने के लिए विवाद हुआ था। जिसमे डीएसपी पर आरोप है कि उन्होंने बड़हरवा टोल प्लाजा टेंडर विवाद मामले में 24 घंटे के भीतर जांच रिपोर्ट दे दी थी।

इसी मामले को लेकर आज ईडी ने प्रमोद मिश्रा को समन भेज कर बुलाया था। वही दूसरी तरफ बात करे तो कल यानी कल सोमवार को अभिषेक प्रसाद उर्फ पिंटू से ईडी दिनभर पूछताछ की। पिंटू दूसरे समन पर ईडी कार्यालय पहुंचे थे। ईडी के अधिकारियों के द्वारा 3 जनवरी को हुए छापेमारी के दौरान डिजिटल उपकरण से मिले डाटा व रिश्तेदारों के नाम अचल संपत्ति खरीद के बारे में पूछताछ हुई।

मीडिया के लिए आयोजित कार्यशाला हुआ सम्पन्न, मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने कहा लोकतंत्र के महापर्व में मीडिया की अहम भूमिका


मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के रवि कुमार ने कहा कि स्वच्छ, निष्पक्ष एवं शांतिपूर्ण मतदान के लिए मीडिया की भूमिका अहम है। उन्होंने कहा कि मतदाताओं को बिना किसी प्रलोभन के व नैतिक मतदान के लिए उनके मताधिकार के प्रयोग हेतु जागरूक करने में वे अपनी भूमिका निभाएं। 

कार्यशाला में अपर मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी नेहा अरोड़ा ने इलेक्शन एक्सपेंडिचर मोनीटरिंग के विभिन्न बिंदुओं पर विस्तृत रूप से भारत निर्वाचन आयोग के दिशा-निर्देशों से मीडिया प्रतिनिधियों को अवगत कराया।

 वहीं अपर मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी संदीप सिंह ने आदर्श आचार संहिता के बारे में, संयुक्त सचिव देव दास दत्ता ने निर्वाचन से संबंधित विभिन्न मामलों, उप निर्वाचन पदाधिकारी संजय कुमार ने मीडिया संबंधित फेक न्यूज़, पेड न्यूज जैसे विभिन्न विषयों के बारे में एवं सिस्टम एनालिस्ट एस.एन जमील ने निर्वाचन आयोग के विभिन्न आईटी अप्लीकेशन के उपयोग के बारे में विस्तृत जानकारी दी। इसके उपरांत एक प्रश्नोत्तरी सत्र में सभी मीडिया के प्रतिनिधियों की शंकाओं का समाधान किया गया।

झारखंड में मौसम का मिजाज बदला, तेज आंधी के साथ बारिश से सड़कों पर गिरे पेड़, आवागमन हुआ ठप

झारखंड की राजधानी रांची के साथ-साथ कई जिलों में मौसम का मिजाज बदल गया है। मौसम विभाग के अनुसार, पूर्व-मध्य भारत के कई राज्यों में आने वाले कुछ दिनों में ओलावृष्टि व बारिश के आसार हैं। बीते शनिवार को हुई बारिश और ओलावृष्टि के बाद रांची जिले के कुछ हिस्सों में आज एक बार फिर मौसम में हुआ बदलाव। रांची सहित कई इलाकों में 2 घंटे से भारी बारिश के कारण जन जीवन हुआ अस्त व्यस्त। बारिश के साथ साथ तेज हवाओं के कारण शहर के कई इलाकों में पेड़ गिरने से यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। पिछले 2 घंटो से बिजली भी नादरत है।

वही दूसरी ओर मौसम विभाग ने 19 मार्च को गरज के साथ बारिश और वज्रपात का अलर्ट जारी किया है। बारिश से पहले ही अधिकतम और न्यूनतम तापमान में गिरावट दर्ज की गई है। 19 मार्च को राज्य के लगभग सभी जिलों तेज गति से हवा चलने की संभावना है। इस दिन बारिश के साथ ओलावृष्टि का भी अनुमान है। इसको लेकर मौसम केंद्र ने ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। इसका असर 20 मार्च को भी देखने को मिलेगा, जहा हल्के से मध्यम दर्जे की बारिश हो सकती है।

21 मार्च को पश्चिमी विक्षोब का असर कम होता दिखेगा। लेकिन कोल्हान क्षेत्र में हल्के से मध्यम दर्जे की बारिश होने की संभावना जताई गई है। वही 21 मार्च से मौसम शुष्क रहने की संभावना जताई गई। इस बीच तापमान की बात करें तो 19 मार्च को अधिकतम और न्यूनतम तापमान क्रमश: 30 और 17 डिग्री सेंटीग्रेड, 20 मार्च को 26 और 15 डिग्री सेंटीग्रेड हो जाने का अनुमान है।

लोकसभा चुनाव को लेकर प्रशासन अलर्ट, सीमावर्ती राज्यों के अधिकारियों के साथ की गई समीक्षा,सुरक्षा, नगद और शराब पर रहेगी नजर...!

लोकसभा चुनाव को लेकर झारखंड पुलिस अलर्ट मोर्ड में आ गई है। चुनाव आयोग के द्वारा तिथियां की घोषणा होने के बाद सुरक्षा व्यवस्था को चाक चौबंद करने की दिशा में झारखंड पुलिस प्रशासन जुट गई है।

चुनाव आयोग के दिशा निर्देश के अनुसार आज झारखंड डीजीपी ने सीमावर्ती राज्यों के साथ की अहम बैठक। लोकसभा चुनाव को पूरी तरह से निष्पक्ष और शांतिपूर्ण तरीके से कराने के लिए झारखंड पुलिस ने लिया निर्णय। सीमावर्ती राज्यों के उच्च प्रशासनिक अधिकारियों ने अपने सुझाव भी शेयर किया।

 झारखंड के डीजीपी अजय कुमार सिंह ये जानकारी देते हुए कहा, इस बार वैसे तत्व जो पूर्व के चुनावों में गड़बड़ी करते हुए चिन्हित हुए थे वे भी पुलिस के राडार पर है। राज्य में सक्रिय अपराधियों के साथ साथ उग्रवादियों और नक्सलियों को चिन्हित कर उनके विरुद्ध कार्रवाई करने को कहा गया है। झारखंड के सीमावर्ती राज्यों के बॉर्डर क्षेत्र परविशेष चौकसी बरती जाएगी। 

सभी बॉर्डर क्षेत्र में चेक पोस्ट लगाने का निर्देश दिया गया है

 साथ ही सभी चेक पोस्ट सीसीटीवी कैमरे से लैस होंगे और पुलिस बल की भी तैनाती की जाएगी। ताकि इस रास्ते किसी प्रकार का अवैध हथियार, नकदी, शराब और किसी प्रकार की नशीली पदार्थ की बरामदगी की जा सके।

ईडी ने पूर्व सीएम के प्रेस सलाहकार अभिषेक प्रसाद उर्फ पिंटू से शुरू की पूछताछ, लिस्ट में दो और लोग भी शामिल, जाने मामला


 पूर्व सीएम हेमंत सोरेन के प्रेस सलाहकार रहे अभिषेक प्रसाद उर्फ पिंटू सोमवार यानी आज प्रवर्तन निदेशालय ऑफिस पहुंचे। इसके बाद ईडी के अधिकारियों ने उनसे पूछताछ शुरू कर दी है।

 गौरतलब है कि जमीन घोटाला और अवैध खनन मामले में ईडी ने बीते तीन जनवरी 2024 की सुबह पिंटू समेत कई अन्य लोगों के ठिकाने पर छापेमारी की थी। इसी मामले में पूछताछ के लिए ईडी ने साहिबगंज डीसी को 11 जनवरी, विनोद सिंह को 15 जनवरी और पूर्व सीएम के प्रेस सलाहकार अभिषेक प्रसाद उर्फ पिंटू को 16 जनवरी को ईडी ने तलब किया था। 

हालांकि पिंटू ने ईडी को पत्र लिखकर कहा है कि उनकी पत्नी बीमार है, इसलिए पूछताछ के लिए उन्हें 22 जनवरी के बाद का समय दिया जाये। जिसके बाद ईडी ने पिंटू को समन भेजकर 18 मार्च को पूछताछ के लिए बुलाया था।

बता दे कि अभिषेक के अलावा इस मामले में हटिया के डीएसपी प्रमोद कुमार मिश्रा व आइएएस अधिकारी अविनाश कुमार की पत्नी प्रीति कुमार से भी पूछताछ होगी। इनसे क्रमश: 19 और 20 मार्च को ईडी पूछताछ करेगी। 

वहीं, प्रीति कुमार का मामला रांची के बरियातू रोड स्थित बर्लिन अस्पताल की जमीन से संबंधित है, जिसकी ईडी ने पूर्व में मापी भी कराई थी। साहिबगंज में 1250 करोड़ रुपये के अवैध पत्थर खनन मामले में हटिया के डीएसपी प्रमोद कुमार मिश्रा पर आरोप है कि उन्होंने बड़हरवा टाेल प्लाजा टेंडर विवाद में बड़हरवा में दर्ज कांड में महज 24 घंटे के भीतर सुपरविजन कर दिया था