रामलला के प्राण प्रतिष्ठा को लेकर संजय राउत का बीजेपी पर तंज, बोले-अब सिर्फ भगवान राम को उम्मीदवार घोषित करना बाकी
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अयोध्या में राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा में अब कुछ ही दिन शेष रह गए हैं। एक तरफ मंदिर के उद्घाटन का उत्साह है, तो दूसरी तरफ इस मुद्दे को लेकर सियासत जोरों पर है। इसी बीच संजय राउत ने शनिवार को अयोध्या में राम मंदिर के राजनीतिकरण का आरोप लगाते हुए भारतीय जनता पार्टी और पीएम मोदी पर कटाक्ष किया। संजय राउत ने कहा कि भाजपा के लिए एकमात्र चीज 2024 लोकसभा चुनाव के लिए भगवान राम को अपना उम्मीदवार घोषित करना है। उन्होंने कहा कि प्राण प्रतिष्ठा राष्ट्रीय कार्यक्रम नहीं है जिसके लिए बीजेपी खूब रैलियां और प्रचार कर रही है।
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 22 जनवरी को भगवान श्रीराम के प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम से पहले अयोध्या में एयरपोर्ट और स्टेशन समेत 15 हजार करोड़ की योजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया। प्रधानमंत्री के इस कार्यक्रम को लेकर शिवसेना उद्धव गुट के सांसद और प्रवक्ता संजय राउत ने शनिवार को कहा- भाजपा राम मंदिर उद्घाटन कार्यक्रम का राजनीतिकरण कर रही है। 22 जनवरी को प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में ऐसा न हो कि भाजपा अगले चुनाव के लिए भगवान राम को अपना उम्मीदवार घोषित कर दे।
राम लला किसी पार्टी की संपत्ति नहीं-राउत
राउत ने प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में जाने के सवाल पर कहा- मुझे कोई निमंत्रण नहीं मिला है। मुझे वहां जाने के लिए किसी निमंत्रण की जरूरत नहीं है। राम लला किसी पार्टी की संपत्ति नहीं, वह सबके हैं। मैं इतना चाहता हूं कि कार्यक्रम का राजनीतिकरण न हो। मंदिर निर्माण का फैसला सुप्रीम कोर्ट का है, किसी सरकार का नहीं।
“प्रभू श्री राम को एक तरह से किडनैप कर लिया गया”
राम मंदिर के उद्धाटन और उसके लिए मिलने वाले निमंत्रण को लेकर संजय राउत की झल्लाहट पहले भी सामने आ चुकी है। अभी दो दिन पहले ही अयोध्या के न्योते को लेकर संजय राउत ने कहा कि अगर यह मंदिर प्रशासन का कार्यक्रम होता तो राम मंदिर का समारोह अलग होता। वहां सत्ता है बीजेपी की है। मुझे लगता है कि प्रभू श्री राम को एक तरह से किडनैप कर लिया गया है। हम क्या बीजेपी के न्योते का इंतजार करते हुए बैठे हैं। जब बीजेपी का कार्यक्रम खत्म हो जायेगा, उसके बाद हम रामलला के दर्शन के लिए अयोध्या जायेंगे। बीजेपी कौन होती है रामलला का न्योता देने वाली। भगवान खुद बुलाते हैं और भक्त बुलाते हैं।










ने अपने 5 दशकों के करियर में तकरीबन 500 फिल्मों में काम किया है। एक जमाना था जब रंजीत को फिल्मों में नकारात्मक किरदार करते देख दर्शक थर-थर कांपते थे। उनकी विलेन की इमेज के चलते उन्हें कई बार लोगों ने असल जिंदगी में भी गलत समझा। अब अपने एक इंटरव्यू में रंजीत ने बताया है कि उनके परिवार को भी उनकी करियर चॉइस पसंद नहीं थी। यहां तक कि उनकी मां ने उन्हें घर से बाहर का रास्ता भी दिखा दिया था।
Dec 30 2023, 18:44
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