सुबह खाली पेट कद्दू के बीज खाने से मिलते है कई फायदे,सूजन,अपच, नींद न आने की समस्याएं होती हैं दूर
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सेहतमंद रहने के लिए खानपान पौष्टिक और हेल्दी होना बेहद जरूरी है. अनाज, फल, सब्जी, फलियां, डेयरी प्रोडक्ट्स के साथ ही शरीर के लिए बीज यानी सीड्स भी बेहद फायदेमंद होते हैं. कई तरह के बीज होते हैं, जिसमें कद्दू के बीज (Pumpkin seeds) का सेवन शरीर को कई तरह के रोगों से बचाए रख सकता है.
कद्दू के बीज कद्दू और गार्ड स्क्वैश की अन्य किस्मों से निकाले गए खाने योग्य बीज हैं. इसे रोस्ट करके, सॉल्टेड बतौर स्नैक्स करके खाया जाता है. इसमें ढेरों पोषक तत्व होते हैं जैसे फाइबर, प्रोटीन, विटामिंस, मिनरल्स जैसे फॉस्फोरस, पोटैशियम, मैग्नीशियम, आयरन, कैल्शियम, जिंक, सोडियम, कॉपर, पॉलीअनसैचुरेटेड फैट्स (गुड फैट्स) आदि होते हैं. चलिए जानते हैं सुबह खाली पेट कद्दू के बीज खाने से होने वाले फायदों के बारे में-
कद्दू के बीज के सेवन के लाभ
1. वेबएमडी में छपी एक खबर के अनुसार, कद्दू के बीजों का सेवन कई तरह की बीमारियों को दूर करने के लिए वर्षों से किया जाता रहा है. इसे यूरिनरी ट्रैक्ट, ब्लैडर इंफेक्शन, हाई ब्लड प्रेशर, हाई ब्लड शुगर, किडनी स्टोन, पेट में कीड़े आदि को दूर करने के लिए फायदेमंद है.
2. कद्दू के बीजों में कई एंटीऑक्सीडेंट्स होते हैं, जो शरीर की कोशिकाओं को बीमारियों के कारण होने वाले क्षति से बचाते हैं. शरीर में इंफ्लेमेशन को कम करते हैं. कई स्टडी में ये बात सामने आई है कि एंटी-इंफ्लेमेटरी फूड्स क्रोनिक डिजीज से बचाते हैं जैसे टाइप 2 डायबिटीज, हार्ट डिजीज आदि
3. मैग्नीशियम होने के कारण कद्दू के बीज हाई ब्लड प्रेशर को कम और नॉर्मल बनाए रखने में कारगर हैं. जब आप मैग्नीशियम से भरपूर डाइट लेते हैं तो स्ट्रोक, हार्ट डिजीज होने का जोखिम भी कम हो जाता है. इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स शरीर में नाइट्रिक ऑक्साइड के स्तर को बढ़ाकर ब्लड वेसल्स को स्मूद, फ्लेक्सिबल, हेल्दी बनाए रखते हैं. इससे ब्लड सर्कुलेशन भी सही से होता है, जो हार्ट डिजीज के जोखिम को कम करता है.
4. रात में सोने से पहले कद्दू के बीजों को भूनकर या स्मूदी आदि में डालकर सेवन करते हैं तो रात में अच्छी नींद आती है. दरअसल, पम्पकिन सीड्स एमिनो एसिड ट्रिप्टोफैन का नेचुरल सोर्स है, जो बेहतर नींद को बढ़ावा देता है. साथ ही इसमें मौजूद जिंक, कॉपर, सेलेनियम भी स्लीप ड्यूरेशन और क्वालिटी को बूस्ट करते हैं.
5. इन बीजों में फाइबर की मात्रा भी अधिक होती है, ऐसे में इसके सेवन से पाचन तंत्र सही रहता है. पेट साफ होता है. कब्ज से बचाव होता है. सुबह खाली पेट कद्दू के बीजों को खाने से अपच, गैस दूर होता है, पाचन शक्ति मजबूत हो सकती है. कद्दू के बीज का सेवन करने से डायबिटीज कंट्रोल में रहता है. आयरन होने के कारण शरीर में हीमोग्लोबिन कम नहीं होता है. इससे आप एनीमिया का शिकार नहीं होते हैं.


माता-पिता बच्चे की कई आदतों को लिए जिम्मेदार होते हैं। बचपन में माता-पिता अपने बच्चे को गर्म चीजों और सड़क में दौड़ती गाड़ियों से बचाने के लिए डरा देते हैं। यह छोटी-छोटी आदतें कुछ वर्षों के बाद बच्चों के लिए बड़ी समस्या का कारण बन जाती हैं। बड़े होने के बाद ये आदतें बच्चे के मन में डर का कारण बन सकती हैं। इस वजह से होने एंग्जाइटी बच्चों की लाइफस्टाइल को प्रभावित कर सकती है।
बच्चों को सोने में कठिनाई हो सकती है। डर या एंग्जाइटी होने पर बच्चा सोते समय बार-बार उठ सकता है। साथ ही, बच्चे को थकान और कमजोरी महसूस होने लगती है। नींद की कमी की वजह से बच्चा एक एक्टिव हो जाता है।
मानसून का मौसम और रिमझिम बारिश का अपना ही आनंद है, हालांकि बरसात के दिनों में आपको सेहत को लेकर विशेषतौर पर सावधान रहने की आवश्यकता होती है। मानसून के समय में वैसे तो मच्छरों के काटने से होने वाली बीमारियों का खतरा रहता ही है, साथ ही ये मौसम पाचन के लिए भी दिक्कतें बढ़ा देता है। बढ़ी हुई नमी हानिकारक बैक्टीरिया और वायरस को बढ़ाने वाली हो सकती है जिसके कारण गैस्ट्रिक समस्याओं का होना आम है।
हम में से ज्यादातर लोग दिन की शुरुआत चाय-कॉफी के साथ करते हैं, इसका अधिक सेवन आपके पाचन के लिए नुकसानदायक हो सकता है। हालांकि इसकी जगह पर हर्बल का सेवन करना अच्छा विकल्प माना जाता है। जैसे अदरक की चाय पीना पाचन स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद है। अदरक शरीर में पाचन एंजाइम और गैस्ट्रिक जूस के उत्पादन को उत्तेजित करने में मदद करता है। इससे पेट फूलने जैसे पाचन संबंधी लक्षणों को कम कर सकते हैं। नींबू पानी पीना भी पाचन के लिए फायदेमंद है।
छाछ और दही आदि को प्रोबायोटिक्स से भरपूर माना जाता है जो आंत में गुड बैक्टीरिया को बढ़ावा देने और पाचन को ठीक रखने में मददगार है। छाछ लोकप्रिय भारतीय पेय है जो भोजन के पाचन को ठीक रखने और पेट की समस्याओं को कम करने में आपके लिए लाभकारी है। यह पेय आपके शरीर को पोषण देने और हाइड्रेट रखने में भी बहुत फायदेमंद माना जाता है। इसके नियमित सेवन से कई प्रकार के स्वास्थ्य लाभ हो सकते हैं।
एंटी-इंफ्लेमेटरी और एंटीऑक्सीडेंट गुणों से भरपूर हल्दी में पाए जाने वाला करक्यूमिन आपकी सेहत के लिए कई प्रकार से लाभप्रद है। इससे रोग प्रतिरोधक क्षमता तो बढ़ती ही है साथ ही ये मल त्याग, पेट दर्द और दस्त को कम करके आंतों की समस्याओं को कम करने में भी फायदेमंद है। इसी तरह से पुदीने के रस को पानी में मिलाकर पीने से भी पाचन संबंधित समस्याओं के जोखिमों को कम किया जा सकता है।
भारत समेत दुनियाभर में हृदय रोग की समस्या बहुत तेजी से बढ़ रही है। कोविड काल के बाद हृदय रोग का जोखिम भारतीयों में काफी बढ़ा है। उच्च रक्तचाप, हाई कोलेस्ट्रॉल, धूम्रपान, मोटापा और अस्वस्थ जीवनशैली के कारण हृदयाघात और स्ट्रोक समेत हृदय संबंधी कई समस्याएं हो सकती हैं। विश्व स्वास्थ्य संगठन के मुताबिक , हृदय रोग भारत में मृत्यु के प्रमुख कारणों में से एक है।
योग विशेषज्ञों के मुताबिक किसी भी योगासन से अधिकतम लाभ प्राप्त करने के लिए उसका सही तरीके से अभ्यास किया जाना आवश्यक माना जाता है। वीरभद्रासन योग की कई मुद्राएं हैं, ऐसे में किसी विशेषज्ञ से बेहतर प्रशिक्षण के बाद ही इस अभ्यास की शुरुआत करें। इस योग के लिए सबसे पहले सीधी मुद्रा में खड़े हो जाएं। अब अपनी बाहों को फर्श के समानांतर उठाते हुए सिर को बाईं ओर मोड़ें। बाएं पैर को भी 90 डिग्री बाईं ओर मोड़ें। कुछ देर तक इस अवस्था में बने रहें। इसी तरह से दूसरी तरफ का भी अभ्यास करें।
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Aug 05 2024, 10:52
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