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बिजली की चपेट में आ कर गाय की मौत

खजनी गोरखपुर।कस्बे में स्थित पोस्ट ऑफिस गली में बिजली के पोल के करंट की चपेट में आने से गाय की मौत हो गई। मौके पर मौजूद लोगों ने बताया कि गाय के पेट में बच्चा भी था। घटना सबेरे लगभग 9 बजे की है, प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार कस्बे और उससे सटे आसपास के गांवों के ज्यादातर पशुपालक दिन में अपनी गायों को खुले में छोड़ देते हैं, वह कस्बे में आकर फलों, सब्जियों और जलपान की दुकानों के आसपास फेंके गए कचरे खाती हैं।

सूचना के बाद भी बिजली की चपेट में आ कर मरने वाली गाय की शिनाख्त नहीं हुई।

एसडीएम खजनी शिवम सिंह ने बताया कि गाय को हटाने की व्यवस्था की जा रही है। घटना के बाद थानाध्यक्ष खजनी गौरव आर कन्नौजिया ने जेसीबी मशीन से मृत गाय को दफ़न कराया।

तीसरे दिन भी गांवों में पहुंच कर चेचक के मरीजों की जांच

खजनी गोरखपुर।इलाके में चेचक फैलने के मामले को स्वास्थ्य विभाग ने बेहद गंभीरता से लिया है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) की टीम ने आज गांवों में पहुंच कर प्रभावित मरीजों से मिल कर उनका हाल जाना, जांच टीम के द्वारा मरीजों को चिकन पॉक्स होने की पुष्टि की गई।

बांसगांव सीएचसी के सुपरिटेंडेंट डॉक्टर के.एम.अग्रवाल डब्ल्यूएचओ माॅनीटर राकेश यादव और रमेश सिंह की टीम के द्वारा बीमार लोगों की जांच के बाद उन्हें इलाज और बचाव के तरीके बताए गए साथ ही रोग प्रतिरोधक तथा मल्टीविटामिन की मुफ्त दवाएं दी गईं।

कैम्प लगा कर खोजे जा रहे हैं नये टीबी मरीज, पोर्टेबल एक्स रे मशीन से मिल रही मदद

गोरखपुर।जिले में टीबी उन्मूलन के लिए नये टीबी रोगियों को खोज कर उन्हें इलाज व सरकारी सुविधाओं से जोड़ने पर विशेष जोर है। इसी कड़ी में उच्च जोखिम वाले क्षेत्रों और अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर कैम्प लगा कर नये टीबी मरीज खोजे जा रहे हैं।

इन कैम्प में पोर्टेबेल एक्स रे मशीन से मौके पर ही टीबी जांच की सुविधा मिल रही है, साथ ही बलगम से भी जांच कराई जा रही है। इस तरह मार्च दो हजार चौबीस से लेकर मई दो हजार चौबीस तक पोर्टेबल एक्स रे मशीन के जरिये 447 नये टीबी रोगी और बलगम की जांच से 34 नये टीबी मरीज खोजे गये हैं। सभी का इलाज शुरू कर दिया गया है।

मानीराम क्षेत्र के 19 वर्षीय युवक बड़े (काल्पनिक नाम) को सीने में दर्द और खांसी की दिक्कत थी। बड़े ने बताया कि उन्हें आशा कार्यकर्ता के माध्यम से पता चला कि मानीराम अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य पर कैम्प लगा है। वहां जाने पर एक्स रे मशीन से उनकी जांच हुई जिसमें तुरंत पता चल गया कि उन्हें टीबी है। इससे पहले भी वह टीबी का मरीज रह चुका है और इसकी वजह से उसकी पढ़ाई छूट गयी। इससे पहले वर्ष 2022-23 में छह माह तक बड़े के टीबी का इलाज चला था। उनका कहना है कि इस बार जांच के बाद जो दवा दी गयी है उससे आराम मिला है। छह महीने तक नियमित दवा खाने को कहा गया है।

चरगांवा प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के वरिष्ठ उपचार पर्यवेक्षक मनीष तिवारी का कहना है कि कैम्प मोड से नये टीबी मरीजों को खोजना आसान हो रहा है। उनके यहां महराजगंज और मानीराम स्वास्थ्य केंद्र पर कैम्प लगाया गया तो टीबी के पांच नये मरीज खोजे जा सके । तीन लोगों में एक्स रे के जरिये टीबी की पुष्टि हुई और दो लोगों में बलगम जांच के जरिये टीबी का पता चला । इस कार्य में जिला स्तर से डीपीसी धर्मवीर प्रताप सिंह, पीपीएम समन्वयक अभय नारायण मिश्र, मिर्जा आफताब बेग और सी नाइंटिन टीम के लीड रामेंद्र जी सहयोग कर रहे हैं ।

पांच हजार लोगों की हुई स्क्रिनिंग

पीपीएम समन्वयक अभय नारायण मिश्रा ने बताया कि मार्च से मई के बीच 5013 संभावित टीबी मरीजों की स्क्रीनिंग की गयी । इस बीच 4994 संभावित मरीजों की जांच पोर्टेबल एक्स रे मशीन से की गयी।

नये टीबी मरीजों को मिलती है यह सुविधा

 सरकारी प्रावधानों के अनुसार जांच व इलाज

 निक्षय पोषण योजना के तहत इलाज चलने तक खाते में 500 रुपये प्रति माह की दर से

 निकट सम्पर्कियों की टीबी जांच और बचाव की दवा का सेवन

 टीबी की सीबीनॉट जांच। साथ में मधुमेह और एचआईवी की जांच

 सम्पूर्ण दवा और परामर्श

यह लक्षण दिखे तो कराएं जांच

अगर दो सप्ताह से अधिक समय तक खांसी, सीने में दर्द, बलगम में खून आना, शाम को पसीने के साथ बुखार, भूख न लगना, तेजी से वजन गिरने जैसे लक्षण हो तो जांच अवश्य करवाना चाहिए

बढ़ी है जांच

सी नाइंटिन टीम की मदद से कैम्प लगा कर नये टीबी मरीज खोजे जा रहे हैं। कैम्प के लिए पहले से योजना तैयार कर ली जाती है और खासतौर से उच्च जोखिम क्षेत्रों में कैम्प लगाए जाते हैं। नये टीबी मरीज खोज कर समय से इलाज कर देने से इसके संक्रमण का चेन टूटता है। लक्षण दिखने पर लोग अपने ब्लॉक में लगने वाले कैम्प में पहुंच कर टीबी जांच करवा सकते हैं।

डॉ गणेश यादव, जिला क्षय रोग उन्मूलन अधिकारी

*उनवल और हरिहरपुर उपकेंद्र क्षेत्र में शुक्रवार को नहीं मिलेगी बिजली*

खजनी गोरखपुर।उनवल और हरिहरपुर उपकेंद्र क्षेत्र के उपभोक्ताओं को शुक्रवार 7 जून को सबेरे 10 बजे से अपराह्न 4 बजे तक बिजली नहीं मिलेगी। उपकेंद्र के अवर अभियंता राजेश कुमार कन्नौजिया ने जानकारी देते हुए बताया कि 33/11केवी विद्युत उपकेन्द्र उनवल पर वीसीबी पैनल बदलने का कार्य तथा 33 केवी लाइन पर अति आवश्यक अनुरक्षण का कार्य आरडीएसएस योजना के अंतर्गत किया जाना है।

जिसके कारण उपकेन्द्र उनवल और हरिहरपुर से सभी फ़ीडरो की विद्युत आपूर्ति बाधित रहेगी।

वट सावित्री व्रत पर्व पर सौभाग्यवती महिलाओं ने पूजा,पतियों के लंबे स्वास्थ्य जीवन की कामना

खजनी गोरखपुर।क्षेत्र में सौभाग्यवती महिलाओं ने आज वट सावित्री पर्व के अवसर पर श्रद्धापूर्वक वटवृक्ष की पूजा की ज्येष्ठ माह की अमावस्या तिथि को मनाए जाने वाले वटसावित्री पर्व पर अपने पतियों के लंबे और स्वस्थ्य जीवन की कामना करते हुए जटाओं वाले पुराने वटवृक्षों के समीप पहुँच कर महिलाओं ने पारंपरिक रूप से विधि विधान के साथ पूजा अर्चना की।

मान्यता है कि सती देवी सावित्री ने अपने पति सत्यवान की मृत्यु के बाद यमराज से उनके जीवनदान के लिए वटवृक्ष के नीचे कठोर तप किया था। सैकड़ों वर्ष तक जीवित रहने वाले वटवृक्ष की भांति पतियों के दिर्घायू की कामनाओं के साथ वटवृक्ष को जनेऊ और कच्चे धागे का पीला रक्षासूत्र लपेट कर बाँस का बना पंखा झलते हुए निर्जल व्रत रहकर मंगलगीत गाते हुए महिलाओं ने आस्था के साथ वट वृक्ष की पूजा उपासना की और व्रत कथा सुनी, वटवृक्षों के नीचे पूजा के दौरान भारी भीड़ देखी गई।

मुख्यमंत्री के शहर गोरखपुर में लगा फ्लैक्स बना चर्चा का विषय, खूब हो रहा वायरल
गोरखपुर। मतगणना के बाद गठबंधन और यूपीए के बीच चल रहे घमासान कसार मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के शहर गोरखपुर में भी देखने को मिल रहा है। शहर के मध्य में लगा एक फ्लेक्स खूब वायरल हो रहा है।

गोरखपुर के पैडलेगंज तिराहे पर समाजसेवी यशवर्धन मिश्रा और गोरखपुर विश्वविद्यालय के छात्र नेता गौतम यादव की ओर से लगाया गया यह फ्लैग शहर में चर्चा का विषय बना हुआ है। फ्लेक्स पर मोटे-मोटे अक्षरों में लिखा गया है कि घमंड टूटने की बधाई।
लड़की से छेड़खानी और मारपीट करने वाले दो युवकों पर केस
खजनी गोरखपुर।तहसील क्षेत्र के सिकरीगंज थाने के बेला गांव की महिला रामकमल की पत्नी कलावती ने गांव के दो युवकों पर अपनी बेटी के साथ छेड़खानी और मारपीट कर कपड़े फाड़ने तथा बचाव में पहुंचे बेटे को भी मारने पीटने की शिकायत दर्ज कराई है।केस दर्ज कर पुलिस करवाई में जुट गई है।

थाने में दी गई तहरीर में महिला ने बताया कि उनकी बेटी शाम को बेटे को खाने के लिए बुलाने जा रही थी, रास्ते में गांव के विकास और दिलीप ने उसका हांथ पकड़ लिया और जोर जबरदस्ती करने लगे लड़की के शोर मचाने पर मारपीट कर कपड़े फाड़ दिए। बचाव में पहुंचे बेटे को भी मारा पीटा। पुलिस ने दोनों आरोपियों के खिलाफ केस संख्या 238/2024 की धाराओं 354,323, 504,506 के तहत केस दर्ज कर लिया है और करवाई शुरू कर दी है।
बाइक चोरी का केस दर्ज
खजानी गोरखपुर।उरूवा थाना क्षेत्र के रहदौली गांव दुघरा के निवासी तेज प्रताप सिंह की बाइक बीते 25 अप्रैल को खजनी थाना क्षेत्र के सिंह मैरेज हॉल से गायब हो गई। खजनी पुलिस को दी गई तहरीर में तेज प्रताप सिंह ने बताया है की बीते 25 अप्रैल को देर रात 10 बजे मैरेज हॉल के बाहर अपनी बाइक संख्या यूपी 53 डीई 6230 खड़ी करके वह मैरेज हॉल में गए थे।

बाहर आने पर उन्हें बाइक नहीं मिली लगभग डेढ़ माह से वो हर संभावित स्थान पर परिचितों और रिश्तेदारों से मिल कर अपनी बाइक तलाश करते रहे लेकिन उसका कोई पता नहीं चला।पुलिस ने मुकदमा अपराध संख्या 234/2024 की धारा 379 के तहत अज्ञात के खिलाफ चोरी का केस दर्ज कर लिया है और घटना की छानबीन शुरू कर दी है।
प्रचंड गर्मी में बढ़ा चेचक का प्रकोप दर्जनों लोग संक्रमित

खजनी गोरखपुर।इलाके के कूंड़ा भरथ कस्बा संग्रामपुर उनवल नगर पंचायत तथा बंगला पांडेय सरयां बदरां पिपरां आदि गांव में चेचक से पीड़ित होने वाले देवानंद पासवान, सुधीर, टिल्लू, शिवबीर, ओमबीर, कन्या, अनन्य, विवेक मौर्या, गजेंद्र राम त्रिपाठी, सोनू, प्रदीप, निखिल की जानकारी मिली है। गांवों में आज भी चेचक को "माता जी" का प्रकोप मान कर संक्रमित व्यक्ति को स्वच्छता के साथ अलग कमरे में रखा जाता है और पूजा पाठ तथा रसोई में तेल मसाले आदि का प्रयोग बंद कर दिया जाता है।

90 फीसदी मामलों में लोग चिकित्सकीय परामर्श नहीं लेते और आशा बहुओं की लापरवाही के कारण इसकी सटीक जानकारी स्वास्थ्य केंद्रों पर नहीं पहुंच पाती है। जिससे चेचक से संक्रमित रोगियों की सही संख्या की जानकारी नहीं मिल पाती है। लोगों ने शरीर पर और चेहरे पर बड़े दाने वाली चेचक होने की जानकारी दी है। तहसील क्षेत्र के दर्जनों गांवों में चेचक के प्रकोप की सूचना दी गई है। जिसकी पुष्टि करते हुए क्षेत्र के होम्योपैथिक चिकित्सक डॉ.रामसिंह, डॉ राम-लक्ष्मण यादव ने बताया कि कई गांवों के लोग चेचक की प्रतिरोधक दवाएं ले जा चुके हैं।

इस संदर्भ में खजनी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी चिकित्साधिकारी डॉक्टर प्रदीप तिवारी ने बताया कि चेचक वेरियोला वायरस के कारण होता है। यह एक संक्रामक बीमारी है जो कि एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैलती है। चेचक तब फैलता है जब कोई संक्रमित व्यक्ति बात करता है, खांसता है या छींकता है जिससे संक्रामक एजेंटों वाली छोटी बूंदें हवा में फैल जाती हैं। उन्होंने बताया कि वैज्ञानिकों के निष्कर्षों से माना जाता है कि चेचक का संचरण मौसम के साथ बहुत भिन्न होता है और गर्म सूखे मौसम से इसके बढ़ने की संभावना सबसे अधिक होती है। छोटे दाने को मिजेल्स तथा बड़े दंगाने को चिकनपॉक्स कहा जाता है। उन्होंने बुखार होने पर पैरासिटामोल तथा खुजली होने पर एंटी एलर्जिक सिट्रिजिन जैसी दवाएं लेने की सलाह दी।

खसरे के प्रकोप की सूचना पर गांवों में जांच के लिए पहुंची टीम

खजनी गोरखपुर।इलाके के कई गांवों में खसरे के प्रकोप की सूचना पर स्वास्थ्य विभाग की टीमों ने गांवों में पहुंच कर मरीजों का हाल जाना और उन्हें रोग प्रतिरोधक तथा मल्टीविटामिन की मुफ्त दवाएं दी गईं। खजनी पीएचसी के प्रभारी चिकित्साधिकारी डॉक्टर प्रदीप तिवारी के नेतृत्व में क्षेत्र के केवटली, बदरां, सहसीं बंगला, सरयां आदि गांवों में आशाओं और पैरामेडिकल स्टॉफ की टीमें भेज कर प्रभावित मरीजों को प्रतिरोधक दवाएं दी गई हैं।

दूसरी ओर बांसगांव सीएचसी के सुपरिटेंडेंट डॉक्टर के.एम.अग्रवाल के साथ कूड़ाभरत, टेकवार और पिपरां आदि गांवों में पहुंची स्वास्थ्य विभाग की टीम ने खसरे से पीड़ित रोगियों के घरों तक पहुंच कर बीमारी की पहचान की गई तथा प्रभावी रोकथाम के उपाय बताए और दवाएं दी।

बाँसगाँव से आई टीम जिसका के द्वारा क्षेत्र भ्रमण कर रोगियों की पहचान की गई। टीम में सुपरिटेंडेंट के साथ स्वास्थ्य पर्यवेक्षक रमेश सिंह, बीएचडब्ल्यू दीपक कुमार सिंह एवं अमित कुमार एएनएम प्रज्ञा पटेल शिवानी के साथ आशा,आंगनवाड़ी कार्यकत्री मौजूद रहीं।

मिली जानकारी के अनुसार खसरे के प्रकोप की सूचना पर प्रदेश शासन लखनऊं स्वास्थ्य विभाग के प्रमुख सचिव ने बेहद गंभीरता से लिया साथ ही सीएमओ के निर्देश पर गांवों में खसरे से पीड़ित रोगियों की पहचान तथा बीमारी से बचाव रोकथाम एवं मुफ्त इलाज की व्यवस्था की गई है।