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भदोही लोकसभा से अब तक केवल एक महिला सांसद बन पाईं

नितेश श्रीवास्तव ,भदोही लोकसभा में महिला सांसदों की भागीदारी कम रही है। मतदान में महिलाएं लगभग बराबर की भागीदारी निभाती हैं। पुरुष और महिलाओं के बीच वोटिंग प्रतिशत का फासला केवल तीन से चार फीसदी तक रहता है। अब तक केवल एक महिला सांसद फूलन देवी बन पाईं। सपा चार बार ने महिला उम्मीदवार पर भरोसा जताया है। देश में होने वाले हर चुनावों में आधी आबादी की भागीदारी बात उठती है, लेकिन जमीनी हकीकत इससे उलट है। संसद में महिलाओं को 33 फीसदी भागीदारी सुनिश्चित तो की जा चुकी है, लेकिन टिकट देने के मामले में भी पार्टियां उनके पति की प्रतिष्ठा को देखकर चुनाव करती हैं।

भदोही लोकसभा में भी महिलाओं की भागीदारी कुछ खास नहीं रही है। इस सीट से अब तक केवल एक महिला सांसद फूलन देवी चुनी जा सकी है। उन्होंने 1996 और 1999 के दो चुनाव जीते हैं। दूसरी तरफ चुनाव में महिला वोटरों की भागीदारी को देखे तो पुरूषों के तुलना में वे कहीं भी कम नहीं है। 2009 के चुनाव में 43 फीसदी वोटिंग हुई। जिसमें पोलिंग हुए वोट में 52 फीसदी भागीदारी पुरूषों की रही। वहीं 48 फीसदी महिलाओं की हिस्सेदारी रही। इसी तरह 2014 के चुनाव में भदोही लोकसभा में 53.5 फीसदी वोटिंग हुई। जिसमें 46.27 फीसदी महिला और 53.72 फीसदी पुरूष वोटरों ने भागीदारी निभायी।

वहीं बात करें 2019 के चुनाव की तो इस चुनाव में कुल 55.6 फीसदी वोटिंग हुई। जिसमें महिलाओं की 47.22 फीसदी और पुरूषों की 52.77 फीसदी हिस्सेदारी रही। इस तरह देखा जाए तो आधी आबादी हर चुनाव में दमदारी से भागीदारी निभाती है, लेकिन बात जब संसदीय भागीदारी की आती है तो उसके हाथ खाली होते हैं। भदोही लोकसभा सीट से महिला उम्मीदवारों में फूलन देवी और सीमा मिश्रा सपा की प्रत्याशी रह चुकी हैं। वहीं 1999 के चुनाव में सुनीता और मधुबनी निर्दलीय प्रत्याशी उतरी थीं। दोनों की जमानत जब्त हो गई थी। 1998 में लड़ी सुनीता को केवल 495 वोट मिले थे।

भदोही लोकसभा में विधानसभावार महिला वोटर की संख्या

भदोही-208072

ज्ञानपुर-188966

औराई-182697

प्रतापपुर-188172

हंडिया-184129

आंगनबाड़ी और सहायिका के 450 पद खाली

नितेश श्रीवास्तव ,भदोही। जिले में 450 आंगनबाड़ी, सहायिकाओं के पद खाली पड़े हैं। इससे 200 से ज्यादा आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को दो-दो केंद्र संभालने पड़ रहे हैं। ऐसे में केंद्र और प्रदेश सरकार की ओर से चलाई जा रही योजनाओं का बेहतर क्रियान्वयन विभाग के लिए चुनौती बन गया है।

बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग की ओर से जिले में कुल 1496 आंगनबाड़ी केंद्र संचालित हैं। इन पर एक आंगनबाड़ी और एक सहायिका की तैनाती की गई थी। शासन से तय गाइडलाइन के आधार पर 60 साल से अधिक उम्र होने पर आंगनबाड़ी और सहायिकाओं की सेवा समाप्त कर दी गई। पुराने कर्मियों को तो हटा दिया गया, लेकिन उनके स्थान पर नई नियुक्ति नहीं की गई। जिससे धीरे-धीरे 204 आंगनबाड़ी और 246 सहायिकाओं के पद खाली हो चुके हैं। ऐसे में एक-एक आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को दो-दो केंद्रों की जिम्मेदारी देनी पड़ रही है। वे भी ऐसे केंद्र हैं, जिनके बीच दूरी है।

औराई, डीघ, ज्ञानपुर, भदोही और सुरियावां ब्लॉक में ऐसे केंद्रों की संख्या अधिक है। यही हाल सीडीपीओ, डीपीओ कार्यालय का भी है। यहां कई सहायक, लिपिक के पद रिक्त हैं। विभागीय कार्य के लिए आउटसाइडरों का सहारा लिया जाता है। आंगनबाड़ी और सहायिकाओं की कमी से पोषाहार वितरण और अन्य विभागीय गतिविधियां प्रभावित हो रही हैं। आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं की कमी से केंद्रों का संचालन भी राम भरोसे चल रहा है। बच्चों, गर्भवती और किशोरियों के पोषण के लिए कई योजनाएं चल रही हैं, लेकिन निगरानी बेहतर न होने से कुपोषित और अति कुपोषित बच्चों की संख्या कम नहीं हो रही है।

पांच साल बाद 135 पदों पर हो रही भर्ती

ज्ञानपुर। जिले में आंगनबाड़ी केंद्रों में करीब पांच साल बाद फरवरी-मार्च में नियुक्ति की प्रक्रिया शुरू हुई। सुरियावां, डीघ, औराई, अभोली, भदोही और ज्ञानपुर के 135 केंद्रों पर आंगनबाड़ी कार्यकर्ता के लिए आवेदन लिया गया है, जो खाली पदों के सापेक्ष एक तिहाई ही है। आचार संहिता के कारण नियुक्ति प्रक्रिया पूरी नहीं हो सकी है। माना जा रहा है कि जून के दूसरे पखवारे में चयन कर लिया जाएगा।

मार्च में मिले थे 12 हजार कुपोषित बच्चे

ज्ञानपुर। आंगनबाड़ी केंद्रों से पोषाहार वितरण एवं जरूरी देखभाल न होने से कुपोषित बच्चों की संख्या भी बढ़ रही है। आईसीडीएस विभाग के आंकड़ों के मुताबिक जनवरी में कुपोषित बच्चों की संख्या जहां 10 हजार 540 थी वह फरवरी में बढ़कर 11 हजार 590 तक पहुंच गई। मार्च में हुए वजन दिवस के बाद 12 हजार 348 कुपोषित पाए गए।

वर्जन

छह ब्लॉकों में 135 पदों के लिए आवेदन लिया गया है। आचार संहिता खत्म होने पर चयन की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। - मंजू वर्मा, डीपीओ भदोही

वन विभाग कराएगा तालाब का जीर्णोद्धार किराने रोपेंगे पौधे

नितेश श्रीवास्तव ,भदोही। वन विभाग जोर‌ई के तालाब का जीर्णोद्धार कराएगा। 60 मीटर लंबे और 30 मीटर चौड़े तालाब की खोदाई का कार्य शुरू कर दिया गया है। इसमें पानी भरने के बाद इसमें कुछ मछलियां छोड़ी जाएगी और उसके चारों तरफ बागवानी की जाएगी। जोर‌ई स्थित वन विभाग कार्यालय के पास स्थित तालाब बाउंड्रीवॉल टूट गई थी। परिसर के तालाब की दयनीय स्थिति को देखकर वन विभाग की ओर से इसके जीर्णोद्धार की कार्ययोजना बनाई है।

तालाब की फिर से खोदाई कराई जाएगी। इसके बाद उसके चारों तरफ बागवानी इत्यादि करने के साथ ही तालाब में कमल के फूल इत्यादि उगाए जाएंगे। वन विभाग की ओर से तालाब की चहारदीवारी की मरम्मत और खोदाई की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है।‌ वन विभाग अधिकारी ने बताया कि तालाब का जीर्णोद्धार कराया जा रहा है। जिसे जल्द ही पूरा करा लिया जाएगा। इसमें मछली छोड़ी जाएगी। तालाब के किनारे रंग - बिरंगे फूलों के पौधे रोपे जाएंगे।

ऑब्जर्वर की तबीयत बिगड़ी, जिला अस्पताल से बीएचयू रेफर, डॉक्टर बोले- बढ़ गई थी बीपी

नितेश श्रीवास्तव ,भदोही। ज्ञानपुर के गोपीगंज कोतवाली क्षेत्र के सीखापुर के समीप शुक्रवार को दोपहर सामान्य प्रेक्षक बी. जान त्लंगतिनखुम के आब्जर्वर एवं खनन अधिकारी अरविंद कुमार यादव (45) की अचानक तबियत बिगड़ गई।

जिला अस्पताल में प्राथमिक उपचार के बाद चिकित्सकों ने ट्रामा सेंटर वाराणसी रेफर कर दिया। इस खबर से प्रशासनिक अमले में खलबली मच गई। जिला निर्वाचन अधिकारी विशाल सिंह और सामान्य प्रेक्षक अस्पताल पहुंचे। जिले में लोकसभा चुनाव के छठवें चरण में 25 मई को मतदान होना है।

आयोग से नामित सामान्य, पुलिस और व्यय प्रेक्षक भी आ चुके हैं। प्रेक्षकों संग एक-एक लाइजनिंग अधिकारी को नामित किया गया है।

सामान्य प्रेक्षक का लाइजनिंग अधिकारी खनन अधिकारी अरविंद कुमार यादव को बनाया गया है। शुक्रवार को भ्रमण के समय जैसे ही उनकी गाड़ी सीखापुर के समीप पहुंची अचानक तबियत बिगड़ गई।

खबर मिलते ही सामान्य प्रेक्षक संग जिला निर्वाचन अधिकारी विशाल सिंह जिला अस्पताल पहुंच गए। जिला अस्पताल के सीएमएस डॉ. राजेंद्र कुमार ने बताया कि गर्मी के कारण ऐसी दिक्कत हुई। बीपी आदि भी बढ़ गई थी। प्राथमिक उपचार के बाद वाराणसी रेफर किया गया।

मायावती ने पार्टी पर कब्जा किया':भाजपा विधायक दीनानाथ भास्कर बोले-अगर परिपक्व नहीं तो आकाश आनंद को उत्तराधिकार क्यों बनाया

नितेश श्रीवास्तव ,भदोही। मायावती के आने से धीरे-धीरे सब कुछ बदलने लगा। मायावती ने पार्टी पर कब्जा कर लिया है। मायावती के भाई का लड़का अगर परिपक्व नहीं था तो उसे उतराधिकारी क्यों नहीं बनाया और राष्ट्रीय जोनल कोआर्डिनेटर क्यों बनाया,बसपा कहती हैं कि वो डॉक्टर भीमराव अम्बेडकर जी के मिशन को चलने वाली पार्टी है। औराई दीनानाथ भास्कर ने मायावती पर आरोप लगाते हुए कहा कि बाबा साहब डॉ भीमराव अंबेडकर ने क्या कभी कोई अपना उत्तराधिकारी बनाया था। लेकिन मायावती ने उत्तराधिकारी बनाया। इतिहास खंगालेंगे तो बसपा में उत्तराधिकारी बनाने का कोई लेखा जोखा नहीं मिलेगा। जो बसपा के विचारधारा पर चलेगा वही उसका उसका उत्तराधिकारी होगा।बाबा साहब तो वो अपने किसी भी परिवार के सदस्य को उत्तराधिकारी बनाकर जाते लेकिन उन्होंने ऐसा कुछ नहीं किया। उन्होंने कहा था कि मेरे जाने के बाद जो बसपा के सिद्धांतों को आगे लेकर चलेगा वहीं उसका असली उत्तराधिकारी होगा। मायावती ने गलत नीयत से ही अपने भतीजे को उत्तराधिकारी बनाया जा और अब फिर हटा दियामायावती ने गलत नीयत से ही अपने भतीजे उत्तराधिकारी बनाया था और अब फिर हटा दिया। मैं ये दावे के साथ कहता हूं कि चुनाव बाद आकाश आनंद को फिर उत्तराधिकारी बना दिया जाएगा। उत्तराधिकारी बनाना ही एक गलत परंपरा है। बाबा साहब के संविधान के खिलाफ है। लोकसभा चुनाव में आकाश आनंद द्वारा ऊल जलूल बोलने पर आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन करने के तहत एफआईआर दर्ज हुआ है। मायावती ने उस मुकदमा से बचाने के लिए सभी पदों से हटा दिया है जो बाद में फिर बहाल हो जाएगा। क्यों वहां कोई सुनवाई नहीं कोई कमेंटी नहीं मेंबर नहीं, जो है वो सब बहन कुमारी मायावती ही है।

ललितेश पति त्रिपाठी ने फिर लौटाई सुरक्षा

नितेश श्रीवास्तव ,भदोही। तृणमूल कांग्रेस के प्रत्याशी ललितेशपति त्रिपाठी ने एक बार फिर सुरक्षाकर्मियों को लौटा दिया है। एपसपी को लिखे पत्र में उन्होंने कहा है कि उनकी सुरक्षा को कोई खतरा नहीं है। इसलिए पुलिसकर्मियों को लौट दिया है। निर्वाचन आयोग के नियमों के मुताबिक प्रत्याशियों को सुरक्षा प्रदान की जाती है। ललितेशपति ने को इससे पहले 14 अप्रैल को सुरक्षा दी गई थी, जिसे उन्होंने लौटा दिया गया था। नामांकन के बाद फिर से पुलिस की ओर से उन्हें सुरक्षा की गई थी। पुलिसकर्मी भेजे गए थे उन्होंने अपर पुलिस अधीक्षक को पत्र लिखकर सुरक्षाकर्मियों को लौटा दिया था। उन्होंने बताया कि उन्हें अपने क्षेत्र में कोई खतरा नहीं है। सुरक्षाकर्मियों को कोई जरूरत नहीं है।

बागवानों ने शुरू कर दिया पौधरोपण,आम , अमरुद,बेल लगाने में बरतें सावधानी

नितेश श्रीवास्तव ,भदोही। पौधा लगाने की तैयारी में बागवान जुट गए हैं। वैज्ञानिक विधि से लगाने वाला बाग कम समय में बागवानों को ज्यादा मुनाफा देता है।

आम , अमरुद, आंवला,बेल व नींबू का बगीचा लगाने में विशेष सावधानी बरतने की जरूरत होती है। जिला उद्यान अधिकारी ममता सिंह यादव ने बताया कि पौधा लगाने के पूर्व तैयारी करना काफी मायने रखता है। हमें वैज्ञानिक विधि से बाग लगाना होगा।

बाग लगाने के लिए ऐसा स्थान चयन करें। जहां जल जमाव न होता हो। मिट्टी के नीचे कड़क - पत्थर की कड़ी परत न हो। बाग लगाने से पूर्व खेत को पूरी तरह समतल कर दें और पानी निकासी का इंतजाम करें। सिंचाई को आधुनिक विधि जैसे टकप सिंचाई को अपनाकर ऊंची नीची भूमि पर पानी भरा जा सकता है। बगीचा लगाने के लिए बागवान म‌ई माह में गड्ढों की खोदाई शुरू कर दें। गड्ढों में आधी मिट्टी ऊपर व आधा मिट्टी नीचे रखना चाहिए।

गड्ढों एक मीटर चौड़ा,लंबा होना चाहिए। इससे गड्ढों में मौजूद कीड़े के अंडे, किटाणु,बीजाणु, खरपतवार के बीच नष्ट हो जाते हैं। जून के अंत गड्ढों की भराई करते हैं। भराई से पूर्व 20 से 25 ग्राम फोरेट दस जी खुद हुई मिट्टी में मिलाकर भर लें। फलदार पौधा लगाते समय कभी भी रासायनिक उर्वरक का प्रयोग करें।

मनमाने ढंग से खड़ी हो रही बाइकें, दिक्कत

नितेश श्रीवास्तव ,भदोही। महाराजा चेतसिंह जिला अस्पताल में मनमाने ढंग से खड़ी हो रही बाइकों से लोगों को काफी दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है। मरीज व हादसों में घायलों को लेकर आने वाले एंबुलेंस चालकों को अत्याधिक परेशानी झेलना पड़ा रहा है। बाइट खड़ी करने को लेकर आए दिन विवाद हो रहा है।

*प्लेटलेट्स के लिए नहीं भटकना होगा डेंगू के मरीजों को*

पिछले साल मिले थे डेंगू के 280 मरीज, जिला चिकित्सालय में ब्लड सेपरेशन यूनिट बनकर तैयार

नितेश श्रीवास्तव,भदोही। पिछले साल डेंगू के 280 मरीज मिले थे। प्लेटलेट्स की व्यवस्था नहीं होने के कारण उनमें से क‌ई रोगियों को बनारस या प्रयागराज रेफर करना पड़ रहा था। जिला अस्पताल के ब्लड बैंक के पास ब्लड सेपरेशन यूनिट तैयार हो गई है। यहां काम शुरू होने के बाद एक यूनिट ब्लड को चार मरीजों के इलाज में इस्तेमाल किया जाएगा।

प्लेटलेट्स की भी कमी नहीं होगी। जिले में 280 मरीज डेंगू के मरीज मिले थे। डेंगू के मरीजों में प्लेटलेट्स की कमी हो जाती है। ऐसे में डेंगू के मरीजों को जिले से बाहर जाकर इलाज कराना पड़ता है। इस बार स्वास्थ्य विभाग ने पहले ही इस तरह की स्थितियों से निपटने की तैयारी में जुटा है। महाराजा चेतसिंह जिला चिकित्सालय परिसर में स्थित ब्लड बैंक के सामने ब्लड कंपोनेंट सेपरेशन यूनिट बनाया जा रहा है।

जिसका लगभग 90 फीसदी काम पूरा हो चुका है। मशीनें भी आ चुकी है। स्वास्थ्य विभाग के अनुसार चुनाव बाद यूनिट का संचालन होने लगेगा। तब एक यूनिट ब्लड से आरबीसी, प्लाज्मा और प्लेटलेट्स अलग किया जा सकेगा और उनको जरूरत के हिसाब से अलग-अलग रोगियों को दिया जा सकेगा। जिला चिकित्सालय के ब्लड बैंक की क्षमता 300 यूनिट की है।

150-150 यूनिट के दो फ्रीजर है। सेपेशन की व्यवस्था नहीं होने के कारण प्लाज्मा और प्लेटलेट्स के लिए मरीजों को अन्य जनपदों का रुख करना पड़ता है। जिला चिकित्सालय में ब्लड के कांपोनेंट को अलग करने के लिए किसी प्रकार के इंतजाम न होने से प्लेटलेट्स, प्लाज्मा,पीआरबीसी आदि यूनिट की अलग से व्यवस्था नहीं है। मरीजों को अन्य जनपदों का रुख करना पड़ता है।

यूनिट करीब - करीब तैयार हो चुकी है। क‌ई मशीनें भी आ गई है। कुछ उपकरण अभी आने बाकी है। इसके बाद लखनऊ की टीम निरीक्षक करेगी। उपकरणों की आपूर्ति करने वाली कंपनी को बुलाकर यूनिट का संचालन शुरू करा दिया जाएगा। चुनाव बाद काम शुरू हो जाएगा

डॉ राजेंद्र कुमार सीएमएस जिला चिकित्सालय

भदोही में मनाया गया विश्व रेडक्रास दिवस: डीएम बोले - मानवता की सेवा के लिए रेड क्रॉस सोसायटी की हुई थी स्थापना

नितेश श्रीवास्तव ,भदोही। भदोही में रेड क्रॉस सोसायटी शाखा द्वारा विश्व रेडक्रास दिवस का आयोजन किया गया। रेडक्रास सोसायटी के अध्यक्ष एवं डीएम विशाल सिंह की अध्यक्षता में रेड क्रॉस सोसायटी परिसर कार्यालय में आयोजित किया गया।

कार्यक्रम का शुभारंभ डीएम अध्यक्ष रेड क्रॉस द्वारा रेड क्रॉस के संस्थापक हेनरी ड्यूनेट के चित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्ज्वलित करके किया गया। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए डीएम ने कहा कि जाति धर्म से ऊपर उठकर मानवता की सेवा के लिए रेडक्रास की स्थापना किया गया था। रेडक्रास द्वारा रेड स्वयंसेवकों को ट्रेनिंग देकर हर ग्राम पंचायत में दो वाॅलिंटियर तैयार किए जाए।

आपदा के समय ताकि तुरंत सहायता पहुंच सके। डीएम ने लोगों से अपील किया की रेड क्रॉस से जुड़कर जरुरतमंदों का सहयोग करें। युवा वर्ग बढ़ चढ़कर इस कार्यक्रम में आगे आए। अंत में डीएम ने लोकतंत्र महापर्व के अवसर पर कार्यालय परिसर में वृक्षारोपण कर बढ़ - चढ़कर मतदान करते हुए अपील की। इस अवसर पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ संतोष कुमार चक ने कहा कि वे रेड क्रॉस द्वारा आयोजित सभी कार्यक्रमों को सहयोग देने के लिए हमेशा तैयार है।

इस अवसर पर डॉ केपी मिश्रा ने रेड क्रॉस के संस्थापक हेनरी ड्यूनेट डू नाॅट का जीवन परिचय प्रस्तुत किया। इस अवसर पर पंकज कुमार उपाध्याय, डॉक्टर अनिल श्रीवास्तव, आलोक कुमार गुप्ता, डॉ विमलेश कुमार पांडेय, प्रमोद दूबे, राजीव गोयल, डॉक्टर ओपी शुक्ला नोडल रेड क्रॉस, अशोक कुमार गुप्ता, डॉ राजेश कुमार , डॉक्टर घनश्याम दास गुप्ता, लोग उपस्थित रहे।