*आयुर्वेद और ज्योतिष के महारथी थे पण्डित मुरारी लाल:अजय शर्मा*
संभल।संस्कार भारती के वैनर तले, श्री बालाजी ज्ञान ज्योति संस्थान में, वैद्य मुरारी लाल शर्मा की पुण्य स्मृति पर एक काव्य गोष्ठी का आयोजन किया गया।
सर्वप्रथम मां सरस्वती के समक्ष दीप प्रज्ज्वलन एवं माल्यार्पण सुबोध कुमार गुप्ता,अजय कुमार शर्मा एवं मीनू रस्तोगी ने किया।
भारतीय इतिहास संकलन समिति के जिलाध्यक्ष अजय कुमार शर्मा ने बताया कि अमरोहा जनपद के ग्राम खरपड़ी में जन्मे वैद्य मुरारी लाल शर्मा, सम्पूर्ण खादर क्षेत्र में, प्रसिद्ध आयुर्वेदाचार्य संगीतज्ञ एवं ज्योतिषाचार्य के रूप में विख्यात थे।
जीवन भर समाजसेवा करके उन्होंने हर क्षेत्र में अपनी विशेष पहचान बनाई, उनके प्रति लोगों में आज भी बहुत श्रृद्धा है। पण्डित जी, उम्र के अन्तिम पड़ाव पर सम्भल में आकर बस गए और अपने कर्तव्य पथ पर निरन्तर आगे बढ़ते रहे।
संस्था के सभी पदाधिकारियों ने पण्डित मुरारी लाल शर्मा के चित्र पर पुष्पांजलि भेंट करते हुए उनके बताए रास्ते पर चलने का संकल्प लिया।
गोष्ठी में वरिष्ठ कवि सुभाष चन्द्र शर्मा ने वैद्य जी की स्मृतियों को ताजा करते हुए सुनाया -
"जल्दी सोना जल्दी उठना, हमको दी यह सीख।
उनकी इन शिक्षाओं में, भविष्य रहा था दीख।"
बदायूं से आए गीतकार उज्ज्वल वशिष्ठ ने राष्ट्रवादी रचना पढ़ी-
"एक राष्ट्र एक भाषा इक कानून है बहुत जरूरी,
नहीं चलेगी कहीं पनेठी और कहीं तंदूरी।
चन्दौसी से आए बृजेश शर्मा ने सुनाया
"कुछ पल ठहर जाए ज़िंदगी , परेशां मत होना। राह चलते हो जाए अंधेरा, परेशां मत होना। मुस्कुरा कर हल निकलेगा, नया सवेरा फिर निकलेगा।"
कवयित्री श्वेता तिवारी ने सुनाया -
"कुछ चित्र स्मृतियों के शेष रह जाते हैं, बोझिल हृदय की यह थकान दूर करने को, अपनी मिट्टी को सूंघ आते हैं, चलो मां के घर घूम आते हैं।
व्यंग्य कवि अतुल कुमार शर्मा ने सुनाया
जाने कब तक आदमी, भ्रष्टाचार की मशीन में धुना जाएगा?
स्वच्छ व्यवस्थाओं का ताना-बाना, जाने कब बुना जाएगा।
इस अवसर पर दीपक शर्मा ,आशा गुप्ता, विकास वर्मा,शिवानी शर्मा, श्रेय कौशिक, पंकज शर्मा, मनमोहन गुप्ता, अरविंद शंकर शुक्ला, सेवाराम सिंह आदि लोग उपस्थित रहे। अध्यक्षता नगर संयोजक सुबोध कुमार गुप्ता ने एवं संचालन अतुल कुमार शर्मा ने किया।
Sep 21 2023, 18:29