विधायकों को सदन से मार्शल आउट किये जाने पर भड़का विपक्ष सदन से किया वॉक आउट, नेता प्रतिपक्ष ने स्पीकर और सीएम पर लगाया यह आरोप
डेस्क : बिहार विधान मंडल के मानसून सत्र के दौरान आज सदन में लगातार चौथे दिन विपक्ष का नीतीश सरकार पर हमलावर रुख बरकार है। इसे लेकर सत्ता और विपक्ष की ओर से आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है। इसमें गुरुवार को सदन में भाजपा के विधायकों द्वारा कुर्सी उठाने, कागज फाड़ने और असंसदीय शब्दों का प्रयोग करने पर स्पीकर अवध बिहारी ने गहरी आपत्ति जताई। बाद में उन्होंने दोनों भाजपा विधायकों को मार्शल आउट करने का आदेश दिया।
इधर विपक्ष ने स्पीक की इस कार्रवाई पर गहरा एतराज जताते हुए स्पीकर अवध बिहारी चौधरी पर सदन में सत्ता पक्ष के इशारे पर काम करने का आरोप लगाया हैं और इसकी शिकायत राज्यपाल से करने की बात की है।
विधानसभा से भाजपा विधायकों के मार्शल आउट किए जाने पर नेता प्रतिपक्ष विजय कुमार सिन्हा ने आपत्ति जताते हुए गुरुवार को कहा कि स्पीकर एकतरफा काम कर रहे हैं। आसन को निरपेक्ष होना चाहिए लेकिन सरकार के दबाव में आकर स्पीकर सरकार के इशारे पर आकर काम कर रहे हैं, जो पूर्णता अघोषित आपातकाल है।
दो विधायकों के मार्शल आउट किए जाने के बाद भाजपा ने सदन से वॉक आउट किया। पूरी घटना को अलोकतांत्रिक बताते हुए विजय सिन्हा ने कहा कि सदन के अंदर परंपरा रही कि विपक्ष को बोलने का मौका मिलता है। लेकिन, जब से सदन शुरू हुआ है स्पीकर सिर्फ छोटे दल के लोगों को बोलने देते हैं और विपक्ष को बोलने नहीं देते हैं। बड़ी मुश्किल से भाजपा को कुछ बोलने दिया जाता है तो बीच में ही लाइन काट दिया जाता है। हमारी आवाज को बंद कर दिया जाता है।
विजय सिन्हा ने आरोप लगाया कि सदन में ट्रेजरी बेंच लोकतंत्र की हत्या कर रहा है। यह सब मुख्यमंत्री की मौजूदगी में हो रहा है। वे भ्रष्टाचारी और अपराधी को बचा रहे हैं। भ्रष्टाचार पर जीरो टॉलरेंस के नाम पर आज सीएम नीतीश मौन धारण किए हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस की संगति में आकर नीतीश कुमार अघोषित आपातकाल सदन के अंदर और बाहर लगाना चाहते हैं। नीतीश जंगलराज को जनता राज बताते हैं और अब गुंडाराज में तब्दील कर रहे हैं। इसे भाजपा कतई स्वीकार नहीं करेगी। इस गुंडाराज के विरोध में भाजपा सड़क से सदन तक आवाज उठाएगी।
उन्होंने स्पीकर के व्यवहार को अनुचित बताते हुए कहा भाजपा सदस्यों का पूरक नहीं पूछने दिया जाता। वहीं सत्ताधारी दल के सदस्यों को पूरक का बौछार लगाने दिया जाता है। आसन को निरपेक्ष होना चाहिए लेकिन स्पीकर सरकार के दबाव में आकर सरकार के इशारे पर आकर काम कर रहे हैं जो पूर्णता अघोषित आपातकाल है। इसके विरोध में अब सड़क से सदन तक लड़ाई होगी। साथ ही हम सदन में न्याय के विधानमंडल के कस्टोडियन राज्यपाल से मिलेंगे। उनसे भी हम दरख्वास्त करेंगे और स्पीकर के कारनामों को हम राज्यपाल को बताएंगे कि वे सदन को एकतरफा चलाना चाहते हैं।
उन्होंने कहा कि गुरुवार को भी हमने सरकार से सवाल किया कि आप के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने पहली कैबिनेट में पहली कलम से 10 लाख बिहार के नौजवानों को नौकरी देने की बात कही थी। लेकिन उसका कुछ नहीं हुआ। समान काम का समान वेतन पर सरकार जवाब दें। भ्रष्टाचार और अपराध कर जवाब दे। लेकिन जैसे ही हमने बोलना शुरू किया माइक बंद कर दिया गया। कैमरे को विपक्ष की तरफ से हटा दिया गया। हमारे सदस्यों ने कैमरे वालों को कहा कि पक्ष की तरफ से कैमरा क्यों बंद कर दिया गया तो भाजपा सदस्यों को बेरहमी से सदन से बाहर निकाला है।
Jul 13 2023, 14:41