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*मंदिर की फूल-मालाओं से तैयार हो रहा खाद*


रिपोर्ट - नितेश श्रीवास्तव

भदोही। नगर के विभिन्न मंदिरों में भगवान पर चढ़ने वाले फूलों की अब बर्बादी नहीं होगी। जी हां, अब मंदिर में भगवान पर चढ़ावे के बाद इन्हीं फूलों से वर्मी कंपोस्ट खाद बनाई जा रही है। नगर पंचायत ज्ञानपुर में इस नये पहल की शुरुआत हो चुकी है। तैयार हुई खाद का उपयोग रोपे गए पौधे पर किया जाएगा। नगर स्थित गांधी पार्क में चार कंपोस्ट में खाद बनाने की प्रक्रिया शुरू है।

जिले में भदोही, गोपीगंज दो नगर पालिका सहित ज्ञानपुर, सुरियावां, नई बाजार, खमरियां और घोसिया नगर पंचायत है। अभी फिलहाल ज्ञानपुर नगर पंचायत की ओर से यह पहल शुरू हो चुकी है। नगर में प्राचीन सिद्धपीठ बाबा हरिहर नाथ मंदिर से हर रोज कई किलो माला-फूल निकालते हैं। खासकर सोमवार और अन्य विशेष दिनों में तो माला-फूलों की मात्रा कुंतल तक चली जाती है। चढ़ाए गए माला-फूल इधर-उधर फेंके जाते थे। इससे लोगों की आस्था आहत होती थी।

दूसरी तरफ गंदगी की भी शिकायत होती थी, लेकिन अब ऐसा नहीं होगा। मंदिर से निकलने वाले फूल-मालाओं से वर्मी कम्पोस्ट खाद तैयार किया जाएगा। एक कंपोस्ट में खाद तैयार होने में 15 से 20 दिन का समय लगेगा। इसके बाद खाद को नगर में रोंपे गए पौंधों पर डाला दिया जाएगा।

मंदिर से निकलने वाले फूल - मालाओं से खाद तैयार किए जाने की पहल काफी सकारात्मक रही है। एक कंपोस्ट से शुरू हुई पहल अब चार कंपोस्ट तक पहुंच गई है। इससे फूल- मालाओं के निस्तारण की समस्या भी समाप्त हो गई और नगर पंचायत को खाद भी प्राप्त हो रहा है।

राजेन्द्र दूबे ईओ ज्ञानपुर

*निकायों की नई सरकार के सामने जनता की उम्मीदों पर खरा उतरने की चुनौती*


रिपोर्ट - नितेश श्रीवास्तव

भदोही। नवनिर्वाचित पालिका अध्यक्ष व चेयरमैन के शपथ ग्रहण करने के बाद निकायों की नई सरकार का गठन हो जाएगा। नई सरकार से लोगों को पेयजल जलनिकासी सफाई आदि स्थानीय समस्याओं के समाधान की उम्मीद है। जनउम्मीदों के पहाड़ पर चढ़ना नई सरकार के लिए किसी चुनौति से कम नहीं है। इन चुनौतियों से निबटने के लिए निकाय प्रमुखों ने रणनीति बनाना कर दिया है। हर निकायों में अलग-अलग चुनौतियां हैं। भदोही : पालिका सीमा में शामिल क्षेत्रों मूलभूत सुविधाएं पहुंचाना लक्ष्यजिले में भदोही नगर पालिका प्रमुख है। नए परिसीमन में पालिका सीमा का विस्तार हुआ है। ऐसे में यहां चुनौतियां सबसे अधिक हैं। नवनिर्वाचित अध्यक्ष नरगिस अतहर का कहना है कि नगर पालिका की सीमा में शामिल हुए गांवों में मूलभूत सुविधाओं का विकास प्राथमिकता है। लोगों तक शहरी योजनाओं को पहुंचाना लक्ष्य है। उन्होंने बताया कि उपेक्षित वार्डों में नए सिरे योजना बनाकर विकास कराया जाएगा।

गोपीगंज : विकास से अछूते रहे वार्डों में कराएंगे विकास

गोपीगंज नगर पालिका के नवनिर्वाचित अध्यक्ष जितेन्द्र गुप्ता का कहना है विकास से अछूते वार्डों तक मूलभूत सुविधाएं पहुंचाना मेरी प्राथमिकता में है। क्षेत्र में पेयजल जलनिकासी और सफाई की समस्या है। इसे जड़ समाप्त करने की दिशा में काम करेंगे। नगरवासियों को जाम की समस्या से निजात दिलाएंगे।

ज्ञानपुर: पेयजल की समस्या का करेंगे समाधान

ज्ञानपुर नगर पंचायत के निर्वाचित अध्यक्ष डॉ. घनश्याम दास गुप्ता ने कहा कि क्षेत्र में पेयजल की समस्या है। नगर में दस वर्ष से पानी की टंकी बनकर तैयार है। इसका संचालनक कराया जाएगा। इससे नगर में दो भागों में पेजयल की सप्लाई कराई जाएगी।

सुरियावां : सड़कों को दुरूस्त कराना पहली प्राथमिकता

सुरियावां नगर पंचायत के अध्यक्ष चुने गए विनय चौरसिया की प्राथमिकता नगर की सड़कों को दुरूस्त कराना है। उनका कहना है कि पिछली सरकारों की उपेक्षा के कारण सड़कें जर्जर हो गई हैं। अब नए सिरे पूरे बाजार का सुंदरीकरण कराया जाएगा। इसके साथ ही नगर में लाइटिंग की व्यवस्था व वार्डों में नए शौचालयों का निर्माण कराया जाएगा।

नईबाजार : सफाई व्यवस्था दुरूस्त कराना लक्ष्य

नईबाजार नगर पंचायत की अध्यक्ष निर्मला सोनकर ने बताया कि उनके सामने सबसे बड़ी चुनौती नगर की सफाई है। उन्होंने कहा कि इस समस्या के समाधान के लिए अभियान चलाकर काम किया जाएगा। इसके साथ ही पेयजल और सड़क की व्यवस्था भी दुरुस्त कराया जाएगा।

खमरिया : आदर्श पंचायत बनाने के लिए करेंगे कार्य

खमरिया नगर पंचायत के चेयरमैन हाजी महमूद आलम ने कहा कि खमरिया कालीन का हब है। यहां विदेशी मेहमान आते हैं। नगर पंचायत को आदर्श नगर पंचायत बनाने की दिशा में कार्य करेंगे। सालों से दबी फाइलों को खुलवाएंगे। शासन से प्रस्ताव को मंजूरी के लिए आग्रह करेंगे।

घोसिया : स्वच्छता पहली प्राथमिकता

घोसिया नगर पंचायत की चेयरमैन बेबी बानों ने कहा कि कि नगर में सफाई की स्थिति बेहद खराब है। इसके लिए विशेष काम किया जाएगा। इसके अलावा नगर की सकरी सड़कों पर से अवैध अतिक्रमण हटवाकर लोगों को जाम की समस्या से निजात दिलाएंगे।

*मानसून में वन विभाग रोपेगा 3.5 लाख पौधे*


नितेश श्रीवास्तव

भदोही। मानसून सत्र में हर साल वन विभाग की ओर से पौधरोपण किया जाता है। विभाग को इसी साल 3.5 लाख पौधारोपण करने का लक्ष्य मिला है। इसके लिए विभाग की ओर से तैयारियां शुरू कर दी गई है।

वन विभाग के तीनों रेज ज्ञानपुर, भदोही, और औराई के अंतर्गत 3.5 लाख पौधारोपण करने के लिए गड्ढे खोदे जा चुके हैं। जुलाई में पौधारोपण का कार्य शुरू होगा। डीएओ नीरज आर्या बताया विभागीय पौधारोपण करने की सारी प्रकिया पूरी हो चुकी है, लेकिन अभी अन्य विभाग का लक्ष्य नहीं मिला है। किस विभाग को कितना पौधा देना है।

इसकी सूची आने के बाद नर्सरी से आम, अमरुद, अनार, बरगद, पीपल, कटहल, नीम, सागौन, शीशम आदि पौधे संबंधित विभाग को सौंपे जाएंगे। बताया कि मानसून आते के बाद पौधारोपण का कार्य शुरू हो जाता है। पिछले साल वन विभाग की ओर से तकरीबन तीन लाख पौधों का रोपण किया गया था।

इस साल पचास हजार अधिक पौधरोपण करने का लक्ष्य है। इसके साथ जनपद में 8000 कलमी पौधे भी लगाए जाएंगे। कलमी पौधे प्रधान व अन्य लोगों को दिया जाएगा ‌।

*बांग्लादेश - म्यांमार तट से टकराता मोचा 200 किमी की रफ्तार से चल रही हवाएं*


नितेश श्रीवास्तव

भदोही। शक्तिशाली चक्रवाती मोचा रविवार को बांग्लादेश और म्यांमार के तटीय इलाकों से टकराया इसके चलते भारी बारिश और 200 किलोमीटर प्रति घंटे से अधिक की रफ्तार से हवाएं चलीं। बंगाल की खाड़ी के आसपास के इलाकों में खतरनाक बाढ़ की आंशका जताई गई है।

बांग्लादेश और म्यांमार के तटीय इलाकों से 5 लाख से अधिक लोगों को सुरक्षित जगहों पर पहुंचाया गया है। वहीं पश्चिम बंगाल में बक्खाली समुद्र तट को पर्यटकों और लोगों से खाली करा लिया गया और अगले तीन तक लोगों के यहां रोक लगा दी गई है। क्योंकि यहां पानी काफी बढ़ गया है। मौसम विभाग का कहना है कि मोचा के चलते चार मीटर तक की तूफानी लहरें निचले इलाकों के गांवों को पानी में बहा सकती है। ऐसी आशंका जताई जा रही है कि चक्रवात मोचा दुनिया के सबसे बड़े शरणार्थी शिविर काॅक्स बाजार को भी प्रभावित कर सकता है।

यहां दस लाख से अधिक विस्थापित मुस्लिम रोहिंग्या शरणार्थी अस्थायी शिविरों में रह रहे हैं। मौसम विभाग के अनुसार चक्रवात काॅक्स बाजार से 250 किलोमीटर दक्षिण में है और अब तट को पार कर रहा है।

दो दशकों का सबसे शक्तिशाली तूफान

मौसम वैज्ञानिकों ने पहले चेतावनी दी थी कि मोचा बांग्लादेश में लगभग दो दशकों में आया सबसे शक्तिशाली तूफान हो सकता है। श्रेणी 4 चक्रवात श्रेणी - पांच तूफान के बराबर तेज हो गया है। निचले इलाकों में रहने वाले लोगों और अधिकारियों को डर है कि मोचा चक्रवात के टकराने के बाद उठी लहरें बड़े पैमाने पर जलप्रलय और भूस्खलन का कारण बन सकती है, जो पहाड़ी शिविरों में रहने वाले लोगों के जीवन को खतरे में डालती है।

भारी बारिश, बाढ़ और भूस्खलन की चेतावनी

संयुक्त राष्ट्र के विश्व मौसम विज्ञान संस्थान ने चेतावनी दी है कि सुपर चक्रवात बांग्लादेश और म्यांमार के तटों के आसमान भारी बारिश, बाढ़ और भूस्खलन का कारण बनेगा। हालांकि बांग्लादेश के मौसम विज्ञान के निदेशक मोहम्मद अजीजपुर रहमान का कहना है कि बांग्लादेश के लिए जोखिम कम हुआ है। चक्रवात मोचा से म्यांमार और इसके दक्षिणी क्षेत्रों में अधिक जोखिम होने की संभावना है। लोगों को सतर्क किया गया है ‌।

*शौर्य दिवस के तौर पर मनाई गई सुखदेव 116 वीं जयंती*


नितेश श्रीवास्तव

भदोही। सुखदेव थापर का जन्म 15 म‌ई 1907 को पंजाब के लुधियाना शहर में हुआ था। अपने बचपन से ही उन्होंने भारत में ब्रितानिया हुकूमत के जल्मों को देखा और इसी के चलते वह गुलामी की जंजीरों को तोड़ने के लिए क्रांतिकारी बन गए।

बचपन से ही सुखदेव के मन में देशभक्ति की भावना कूट - कूट कर भरी थी। वह लौहार के नेशनल काॅलेज में युवाओं में देशभक्ति की भावना भरते और उन्हें स्वतंत्रता आंदोलन में कूद पड़ने के लिए प्रेरित करते थे। एक कुशल नेता के रूप में वह कालेज में पढ़ने वाले छात्रों को भारत के गौरवशाली अतीत के बारे में भी बताया करते थे।

सुखदेव ने अन्य क्रान्तिकारी साथियों के साथ मिलकर लौहार में नौजवान भारत सभा शुरू की यह एक ऐसा संगठन था जो युवकों को स्वतंत्रता आंदोलन में शामिल होने के लिए प्रेरित करता था। सुखदेव ने युवाओं में न सिर्फ देशभक्ति का जज्बा भरने का का किया, बल्कि खुद भी क्रांतिकारी गतिविधियों में सक्रिय रुप से भाग लिया। 1928 की उस घटना के लिए सुखदेव का नाम प्रमुखता से जाना जाता है, जब क्रांतिकारियों ने लाला लाजपत की मौत का बदला लेने के लिए गोरी हुकूमत के कारिदें पुलिस उपाधीक्षक जेपी सांडर्स को मौत के घाट उतार दिया था।

इस घटना ने ब्रिटिश साम्राज्य को हिलाकर रख दिया था और पूरे देश में क्रांतिकारियों की जय - जय कार हुई थी।सांडर्स की हत्या के मामले को लाहौर षड्यंत्र के रूप में जाना गया। ब्रितानिया हुकूमत को अपनी क्रांतिकारी गतिविधियों से दहला वाले राजगुरु, सुखदेव और भगतसिंह को मौत की सजा सुनाई गई। 23 मार्च 1931 को तीनों क्रांतिकारी हंसते - हंसते फांसी के फंदे पर झूल गए और देश के युवाओं के मन में आजादी पाने की न‌ई ललक पैदा कर ग‌ए।

सुखदेव मात्र 24 साल की उम्र में जब इस दुनिया से विदा हो गए ‌। भारतीय स्वाधीनता संग्राम में सुखदेव थापर एक ऐसा नाम है जो न सिर्फ अपनी देशभक्ति, साहस और मातृभूमि पर कुर्बान होने के लिए जाना जाता है बल्कि शहीद - ए - आजम भगत सिंह के अनन्य मित्र के रुप में भी उनका नाम इतिहास में दर्ज है‌।सोमवार को ज्ञानपुर नगर के शहीद पार्क में जय बाबा बर्फानी ग्रुप द्वारा शहीद सुखदेव जी की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर उनकी जयंती धूमधाम से मनाई गई जय बाबा बर्फानी ग्रुप के ब्रह्मा मोदनवाल ने कहा कि भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में सुखदेव को देशभक्ति, साहस और शहादत के लिए जाना जाता है। अपने दौर में युवाओं के मन में आजादी पाने की ललक पैदा करने वाले भारत मां के इस सपूत ने महज 24 साल की उम्र में देश के लिए जान दे दी। इनके जैसे महान क्रांतिकारी अपनी वीरता और विचारों के कारण अमर हो जाते हैं। इस दौरान विशाल सिंह राकेश देववंशी गोल्डी आर्यन साहू इत्यादि उपस्थित रहे।

*मांग बढ़ने से तरबूज व खीरा के भाव बढ़े*


रिपोर्ट - नितेश श्रीवास्तव

भदोही। तपिश बढ़ने से पानीदार फलों की मांग बढ़ गई है। इससे मंडी में खीरा, ककड़ी, खरबूज और तरबूज का आवक बढ़ गया है। इन फलों के भाव भी बढ़ ग‌ए । भिडिऊरा निवासी प्रगतिशील किसान सुभाष दूबे ने बताया कि इस वर्ष चार बीघे में तरबूज की खेती किया था। 14 से 15 क्विंटल तरबूज खप जा रहा है।

किसानों के मुताबिक स्थानीय मंडी में तरबूज 16 रुपए किलो बिक रहा है। बाहर के व्यापारी ऊंचे दाम देकर तरबूज मंगा रहें। भीषण गर्मी में लोग हलक तर करने के लिए पानी फलों का सहारा लेते हैं। भोजन की जगह ककरी, खीरा और तरबूज जैसे फलों की प्राथमिकता देते हैं। इसलिए गर्मी के दिनों पानीदार फलों की मांग बढ़ जाती है।

*70 वार्डों में निर्दल प्रत्याशियों का लहराया परचम*


नितेश श्रीवास्तव

भदोही। नगर निकाय चुनाव में राजनीतिक दलों को जनता ने झटका दिया है। सभासद की 116 सीटों में करीब 70 सीटों पर निर्दलीयों को मौका दिया है। 40 से 45 सीटों पर ही भाजपा, कांग्रेस सपा बसपा काबिज हो पाई है। नगर निकायों में अध्यक्ष निर्दल प्रत्याशियों ने ही बाजी मारी है। ज्ञानपुर नगर पंचायत की 11 वार्डों में सात पर निर्दलीय उम्मीदवार विजयी रहे। 

वहीं खमरिया के 15 वार्डों में नौ सीटों पर निर्दल प्रत्याशी काबिज हुए हैं। गोपीगंज नगर पालिका में 25 सीटों में 23 पर निर्दलीयों का दबदबा रहा। भाजपा महज दो उम्मीदवारों को जीत मिली। यहीं हाल सुरियावां, न‌ईबाजार, भदोही और घोसियां में भी रहा। सियासी जानकारी का मानना है कि राजनीति दलों को भितरघात से नुकसान हुआ है। टिकट बंटवारे में बड़े पैमाने पर हुई भूल को भी कारण माना जा रहा है।

*शहीद शुलभ उपाध्याय की छठवीं पुण्यतिथि आज*

नितेश श्रीवास्तव

भदोही। जनपद के औराई क्षेत्र के बैरा खास निवासी शहीद सुलभ उपाध्याय की 6वीं पुण्यतिथि 15 मई को मनाई जायेगी। जहां पर सुलभ उपाध्याय को श्रद्धांजलि अर्पित की जायेगी। 

 मालूम हो कि बीते 2017 में 15 मई को सुलभ उपाध्याय छत्तीसगढ में नक्सलियों से एक मुठभेड़ में शहीद हो गये थे। शहीद शुलभ उपाध्याय की स्मृति में उनके पैतृक गांव बैरा गांव में श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया जाता है।

शहीद सुलभ उपाध्याय के स्मृति में ज्ञानपुर के हास्टल चौराहा पर प्रतिमा स्थापित की गई थी लेकिन कुछ माह में ही किसी वाहन ने टक्कर से चौराहा पर बना प्रतिमा टूट गई और प्रशासन ने माननीय न्यायालय के आदेश का हवाला देकर फिर से चौराहा पर प्रतिमा स्थापित न की।

बीते वर्ष 29 नवम्बर को ज्ञानपुर के जीआईसी में प्रतिमा लगाई गई लेकिन छः माह बीतने के बाद भी आज तक शहीद के प्रतिमा के ऊपर छाजन न कराया गया जबकि उसी दिन जिलाधिकारी ने लोक निर्माण विभाग के अधिशासी अभियंता को छाजन कराने का निर्देश दिया लेकिन आज तक न हो सका। शहीद शुलभ उपाध्याय के घर के पास ही उनकी प्रतिमा स्थापित की गई है जहां पर मौके मौके पर जनपद के नेता और अधिकारी आकर श्रद्धांजलि अर्पित करते है।

*निकाय चुनाव: निर्दलीय प्रत्याशियों का दबदबा, तीन सीटों पर कब्जा*

नितेश श्रीवास्तव

भदोही। जिले के नगर निकाय चुनाव में शनिवार को काफी उलटफेर देखने को मिला। भाजपा, सपा, बसपा को उम्मीद के हिसाब से सफलता नहीं मिली। वहीं निर्दलीय प्रत्याशियों की बल्ले-बल्ले रही। जिले की तीन ज्ञानपुर, गोपीगंज और घोसिया में निर्दलीय प्रत्याशियों ने कब्जा जमाया।

वहीं भाजपा को केवल नई बाजार और सुरियावां की सीट से ही संतोष करना पड़ा। इसके अलावा भदोही में बसपा और खमरिया में सपा के प्रत्याशियों को जीत मिली। गोपीगंज और सुरियावां को छोड़कर अन्य निकायों में कभी सपा तो कभी भाजपा और कभी बसपा जबकि निर्दल उम्मीदवार आगे-पीछे होते रहे। दोपहर बाद तस्वीर धीरे-धीरे साफ होने लगी।

ज्ञानपुर नगर पंचायत में दो बार अध्यक्ष रहे भाजपा प्रत्याशी हीरालाल मौर्य चुनाव हार गए। उन्हें पूर्व चेयरमैन एवं निर्दल प्रत्याशी घनश्याम दास गुप्ता ने 191 मतों से हरा दिया। हीरालाल मौर्य को 2719, निर्दल घनश्याम को 2910 और निर्दल शाहिद खान को 1934 मत मिले।

गोपीगंज नगर पालिका सीट पर निर्दल प्रत्याशी जितेंद्र गुप्ता ने कांग्रेस प्रत्याशी माबूद खान को 2268 मतों से हराया। जितेंद्र को 7296 मत, माबूद खान को 5028, भाजपा के बृजेश गुप्ता को 4754 और सपा के शशि प्रकाश को मात्र 321 वोट मिले। घोसिया नगर पंचायत में दो निर्दल उम्मीदवारों में सीधी टककर रही। निर्दल बेबी बानों ने निवर्तमान चेयरमैन रजिया नुमान को 2535 मतों से हरा दिया।

बेबी बानों को कुल 7378 मत मिले, जबकि रजिया नुमान को 4883 मतों से संतोष करना पड़ा। खमरिया नगर पंचायत में सपा प्रत्याशी महमूद आलम ने भाजपा के अभिषेक मौर्य को 1243 मतों से हराया। महमूद आलम को 4220 और अभिषेक को 2977 वोट मिले। पूर्व चेयरमैन नंद कुमार मौर्य को 1095, पूर्व चेयरमैन रामधनी मौर्य को 1803 और बसपा को 1458 वोट मिले।

भदोही नगर पालिका में भाजपा प्रत्याशी उर्वशी जायसवाल को बसपा की नरगिस ने 2983 मतों से हरा दिया। नरगिस को 23029 मत, उर्वशी को 20046 मत, सपा को 10 हजार 576 मत, कांग्रेस को 1838 और एमआईएमआईएम को 2527 वोट प्राप्त हुए। सुरियावां नगर पंचायत में भाजपा प्रत्याशी विनय चौरसिया ने एक तरफा मुकाबले में बसपा के भानु मौर्य को 2451 मतों से पराजित किया।

विनय को कुल 5290 मत मिले जबकि भानु को 2839 मत मिले। सपा उम्मीदवार नंदलाल मौर्य को 861 मतों से संतोष करना पड़ा। नई बाजार में भाजपा प्रत्याशी निर्मला सोनकर ने सपा प्रत्याशी रीना सोनकर को 1299 मतों से हराया। निर्मला को 3422 और रीना को 2123 वोट मिले। जीत दर्ज करने के बाद नए अध्यक्षों का समर्थकों ने फूल मालाओं से लादकर स्वागत किया। नव निर्वाचित अध्यक्षों को निर्वाचन अधिकारियों ने जीत का प्रमाणपत्र दिया। कड़ी सुरक्षा के बीच सभी विजयी उम्मीदवारों को उनके घर पहुंचाया गया।

*ज्ञानपुर: खत्म हुआ घनश्याम का एक दशक का वनवास*

नितेश श्रीवास्तव

भदोही । जिला मुख्यालय की बहुचर्चित नगर पंचायत ज्ञानपुर की सीट पर कांटे का मुकाबला देखने को मिला। रस्साकशी के बीच अंतत: घनश्याम दस गुप्ता का एक दशक का वनवास खत्म हो गया और वे 191 मतों से जीतकर चौथी बार चेयरमैन बन गए। एक बार उनकी पत्नी भी चेयरमैन रह चुकी हैं।

2012 के बाद वे दो बार लड़े, लेकिन दूसरे नंबर पर ही रहे। ज्ञानपुर के पुरानी बाजार निवासी एवं व्यापारी नेता घनश्याम दास गुप्ता एवं उनकी पत्नी 2012 से पूर्व लगातार चार बार चेयरमैन रहें। ज्ञान सरोवर की सफाई को लेकर चर्चा में आए हीरालाल मौर्य 2012 में पहली बार अध्यक्ष बने थे। 2017 में जनता ने दुबारा उन्हें ही चुना।

दोनों बार घनश्याम दूसरे नंबर पर ही रहे। 2023 के चुनाव में भाजपा उम्मीदवार हीरालाल, निर्दल घनश्याम दास गुप्ता और निर्दल शाहिद खान के बीच मुकाबला था। मतदान के दिन सातों निकायों में सबसे अधिक ज्ञानपुर में करीब 72 फीसदी तक मत पड़े। शनिवार को मतगणना शुरू हुई तो पहले चक्र में हीरालाल आगे रहे, लेकिन उसके बाद घनश्याम ने धीर-धीरे बढ़त बनानी शुरू की। चौथे राउंड में 191 मतों से जीत दर्ज कर लिया। जीत के साथ ही उनका एक दशक का वनवास भी खत्म हो गया।