कर्मचारी राज्य बीमा निगम की 83वीं क्षेत्रीय परिषद बैठक संपन्न
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-- योजनाओं के प्रचार-प्रसार और अधूरी परियोजनाओं को समयबद्ध पूरा करने पर जोर
लखनऊ। कर्मचारी राज्य बीमा निगम (ईएसआईसी) की 83वीं क्षेत्रीय परिषद की बैठक उत्तर प्रदेश सचिवालय के तिलक हॉल में संपन्न हुई। बैठक की अध्यक्षता उत्तर प्रदेश के श्रम एवं सेवायोजन मंत्री अनिल राजभर ने की, जो परिषद के अध्यक्ष भी हैं।
बैठक में निगम की उत्तर प्रदेश इकाई की वर्तमान संरचना, लाभार्थियों को दी जा रही सुविधाओं और विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं की विस्तार से समीक्षा की गई। केसी झा, क्षेत्रीय निदेशक एवं परिषद के सदस्य सचिव ने प्रस्तुति के माध्यम से निगम की उपलब्धियों और भविष्य की योजनाओं की जानकारी दी।
-- बैठक की मुख्य बातें:
उत्तर प्रदेश के 75 में से 74 जिलों में कर्मचारी राज्य बीमा योजना पूरी तरह लागू हो चुकी है। केवल बांदा जिला अब तक योजना से बाहर है, जहां जल्द ही चिकित्सा सुविधा शुरू की जाएगी। राज्य भर में बीमितों की सुविधा के लिए 109 निजी अस्पतालों के साथ अनुबंध किया गया है, साथ ही 34 डिस्पेंसरी एवं 3 ईएसआई अस्पताल भी संचालित हैं। "वॉर्ड ऑफ आईपी" योजना पर विशेष जोर दिया गया, जिसके तहत बीमित कर्मचारियों के बच्चों को ईएसआईसी के मेडिकल, डेंटल और नर्सिंग कॉलेजों में प्रवेश की सुविधा मिलती है।
मंत्री राजभर ने सभी अस्पतालों एवं औषधालयों का नियमित निरीक्षण कराने, लंबित निर्माण कार्यों को समयसीमा में पूर्ण कराने और योजनाओं के व्यापक प्रचार की आवश्यकता पर बल दिया। उत्तर प्रदेश कर्मचारी राज्य बीमा सोसाइटी के गठन की प्रक्रिया में तेजी लाने और औषधालयों को सुविधाजनक स्थानों पर स्थानांतरित करने के निर्देश दिए गए। राजभर ने यह भी आश्वासन दिया कि बांदा जिले में योजना के क्रियान्वयन हेतु राज्य सरकार हरसंभव सहयोग प्रदान करेगी।
बैठक में राज्य मंत्री (श्रम) मनोहर लाल "मन्नू" कोरी, प्रमुख सचिव (श्रम) डॉ. एम.के. शनमुगा सुंदरम, विशेष सचिव निलेश कुमार सिंह, परिषद सदस्य डॉ. विजय सिंह चौहान, राधे कृष्ण त्रिपाठी, श्रीकांत अवस्थी, प्रणय सिन्हा, सुरेंद्र प्रसाद सिंह, संजीव मिश्रा सहित ईएसआईसी के कई अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित रहे।
May 14 2025, 17:01