नक्सलवाद के खिलाफ छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की रणनीति की हुई सराहना, केंद्रीय गृह मंत्री ने की तारीफ
नई दिल्ली- देश के नक्सल प्रभावित राज्यों में जारी नक्सलवाद के खिलाफ चल रहे अभियानों पर एक अहम बैठक आज नई दिल्ली के विज्ञान भवन में आयोजित की गई। इस बैठक की अध्यक्षता केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने की, जिसमें छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और अन्य नक्सल प्रभावित राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने हिस्सा लिया।
इस महत्वपूर्ण बैठक का केंद्र बिंदु छत्तीसगढ़ का हाल ही में सफलतापूर्वक संपन्न हुआ नक्सल विरोधी ऑपरेशन था, जिसमें राज्य की पुलिस ने 31 नक्सलियों को ढेर किया। इस ऑपरेशन में छत्तीसगढ़ पुलिस की कुशल रणनीति और राज्य सरकार की योजनाओं की सफलता पर विशेष चर्चा की गई। बैठक में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री जेपी नड्डा, केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय तथा छत्तीसगढ़ के उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा भी उपस्थित थे।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने इस ऑपरेशन में छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और उनकी टीम के प्रयासों की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि इस वर्ष जनवरी से लेकर अब तक छत्तीसगढ़ के सुरक्षा बलों ने लगभग 194 नक्सलियों को मुठभेड़ में मार गिराए हैं। वहीं 801 नक्सली गिरफ्तार हुए एवं 742 नक्सलियों ने आत्म समर्पण किया है। उन्होंने कहा आज भी जो युवा नक्सलवाद में लिप्त है उनसे आग्रह है कि हथियार छोड़ कर मुख्य धारा से जुड़े। सभी राज्यों ने आपके पुनर्वास के लिए बेहतर योजनाएं बनाई हैं उसका फायदा लीजिए।
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने बैठक में नक्सल ऑपरेशन की विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने बताया कि कैसे राज्य पुलिस और खुफिया एजेंसियों ने महीनों की मेहनत और प्लानिंग के बाद इस ऑपरेशन को अंजाम दिया। ऑपरेशन में करीब 1000 जवान शामिल थे, जिन्होंने 15 किलोमीटर के दायरे में स्थित गवाड़ी पहाड़ को घेरकर 31 नक्सलियों को ढेर किया। इस ऑपरेशन में कई बड़े नक्सली नेता मारे गए, जिनमें 16 पर कुल 1 करोड़ 30 लाख का इनाम घोषित था। मुठभेड़ में 18 पुरुष और 13 महिला नक्सली मारे गए।
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने अपने प्रेजेंटेशन में बताया कि कैसे राज्य की पुलिस फोर्स ने सटीक खुफिया जानकारी के आधार पर इस ऑपरेशन को अंजाम दिया।
मुख्यमंत्री ने बैठक में केवल ऑपरेशन की सफलता पर ही नहीं, बल्कि राज्य में चल रहे विकास कार्यों पर भी विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने कहा कि “नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में विकास कार्यों की गति बढ़ाई गई है। हम निरंतर गाँवों तक बुनियादी सुविधाएँ पहुंचा रहे हैं, जिसमें शिक्षा, स्वास्थ्य, और महिला सशक्तिकरण पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है।” श्री साय ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के लगातार मिल रहे मार्गदर्शन में हमने माओवादियों के कोर को तोड़ा। ऐसे एरिया में हमने 32 नये कैम्प स्थापित किये हैं, जिसे वो अपनी राजधानी तक कहते थे। उनकी बटालियन के कमांडर हिड़मा के गाँव में भी हमने कैंप स्थापित किया और उसकी माँ को भी स्वास्थ्य सुविधाएँ उपलब्ध कराई।
भविष्य की योजनाओं और लक्ष्य की दी जानकारी
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने छत्तीसगढ़ सरकार की आगे की योजनाओं पर भी चर्चा की। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार का मुख्य लक्ष्य नक्सलियों के बचे हुए गढ़ों को समाप्त करना और इन इलाकों में स्थाई शांति और विकास सुनिश्चित करना है। निकट भविष्य में, दक्षिण बस्तर में 29 नए सुरक्षा कैंपों की स्थापना की जाएगी, ताकि नक्सलियों के प्रभाव को खत्म किया जा सके।
केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा केंद्र हरसंभव सहायता के लिए प्रतिबद्धकेंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने छत्तीसगढ़ में हुए सफल ऑपरेशन की तारीफ करते हुए अन्य राज्यों के मुख्यमंत्रियों से आग्रह किया कि वे भी छत्तीसगढ़ की खुफिया तकनीकी और आपसी समन्वय के आधार पर अपने अपने राज्यों में ऑपरेशन को अंजाम दे सकते हैं। गृह मंत्री ने यह भी कहा कि केंद्र सरकार छत्तीसगढ़ सहित अन्य नक्सल प्रभावित राज्यों को हर संभव सहायता देने के लिए प्रतिबद्ध है और राज्य में विकास कार्यों में तेजी लाने के लिए पूरा समर्थन देगी।

नई दिल्ली- देश के नक्सल प्रभावित राज्यों में जारी नक्सलवाद के खिलाफ चल रहे अभियानों पर एक अहम बैठक आज नई दिल्ली के विज्ञान भवन में आयोजित की गई। इस बैठक की अध्यक्षता केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने की, जिसमें छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और अन्य नक्सल प्रभावित राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने हिस्सा लिया।


सक्ती- पंचायत चुनाव से पहले कांग्रेस पार्टी को एक बड़ा झटका लगा है. सक्ती जिले के जैजैपुर में जनपद अध्यक्ष रोशनी चंद्रा सहित 6 जनपद सदस्य भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) में शामिल हो गए हैं.
रायपुर- छत्तीसगढ़ स्टेट बेवरेजेस कार्पोरेशन के संचालक मंडल की बैठक आज रायपुर के आबकारी भवन में आयोजित की गयी। बैठक की अध्यक्षता छत्तीसगढ़ के स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने की। संचालक मंडल की इस बैठक में बेवरेज कारपोरेशन के विभिन्न एजेंडों पर विस्तार से चर्चा हुई। बैठक में सर्वप्रथम 21 अगस्त को आयोजित बैठक में लिए गए निर्णयों का पालन प्रतिवेदन प्रस्तुत किया गया। बैठक में वित्तीय वर्ष 2023-24 के वित्तीय विवरणों का अनुमोदन भी किया गया। बैठक में बेवरेज कार्पोरेशन द्वारा दुर्ग एवं बिलासपुर के गोदामों में हाउस कीपिंग कार्य के लिए निविदा जारी करने कार्य का अनुमोदन किया गया, साथ ही अरसनारा-दुर्ग गोदाम के लिए एक नग जेनरेटर क्रय करने की भी स्वीकृति प्रदान की गयी।
रायपुर- राजधानी के साइंस कॉलेज मैदान में आयोजित तीन दिवसीय भव्य सशस्त्र सैन्य समारोह में 100 से अधिक हथियारों की प्रदर्शनी लगाई गई है. इस समारोह में भीष्म टी-90 टैंक और स्ट्रेला-10 एमएम वेपन सिस्टम आकर्षण बने हुए हैं. इसके साथ ही सबसे ज्यादा आकर्षण का केंद्र ब्लैक हॉर्नेट ड्रोन बना हुआ है जो सबसे छोटा है और दुश्मनों की हर चाल पर निगरानी रखता है. इस ड्रोन की कीमत करीब 2 करोड़ रुपये है.
रायपुर- कांग्रेस की सरकार के दौरान पूर्व सीएम भूपेश बघेल के करीबी रहे केके श्रीवास्तव को पुलिस ने भगोड़ा घोषित कर दिया है। केके श्रीवास्तव पर 15 करोड़ की ठगी का आरोप है और वह लगातार फरार चल रहे है। तेलीबांधा थाना पुलिस लगातार उसकी तलाश कर रही है, लेकिन सफलता नहीं मिली। इस बीच अब पुलिस ने उसकी गिरफ्तारी पर इनाम घोषित किया है। जिसके मुताबिक जो भी केके श्रीवास्तव आरोपी को गिरफ्तार करायेगा उसे दस हज़ार की नगद राशि दी जायेगी।
रायपुर- मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने महाराजा चक्रधर सिंह को 7 अक्टूबर उनकी पुण्यतिथि पर नमन किया है। मुख्यमंत्री ने अपने संदेश में कहा है कि रायगढ़ के महाराजा चक्रधर सिंह का संगीत और शास्त्रीय नृत्य कला की गौरवशाली संस्कृति के संरक्षण में उल्लेखनीय योगदान रहा है। उन्होंने नृत्य और संगीत विधा की अनेक साहित्यिक कृतियों की रचना की। उनकी कला के प्रति साधना के कारण शास्त्रीय नृत्य के रायगढ़ घराना को जाना जाता है। राज्य सरकार द्वारा उनके सम्मान में चक्रधर सम्मान की स्थापना की है।
रायपुर- अपने घर की परछी में मक्के का बीज निकालती रामबाई खुश है कि इस बार दशहरा-दीपावली के त्यौहार के समय बहुत ज्यादा आर्थिक समस्याओं से नहीं जूझना पड़ेगा। कोरबा शहर से लगभग सौ किलोमीटर दूर जंगल और पहाड़ी इलाकों में रहने वाली रामबाई के लिए जीवनयापन किसी जद्दोजहद से कम नहीं है। वह बताती है कि जब से मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने महतारी वंदन योजना शुरू की है तब से उन्हें अपने खाते में हर माह एक हजार रुपए आने की गारण्टी मिल गई है। उनका कहना है कि वह आने वाले दशहरा-दीपावली को बीते बरसो की तुलना में बहुत बेहतर तरीके से मनाएगी।
रायपुर- ज़िले में जल जगार महा उत्सव के दौरान रविवार दूसरे दिन अल सुबह हाफ मैराथन में सैकड़ों की तादाद में लोग पहुँचे और जल जागरूकता के लिए आयोजित इस विराट आयोजन का हिस्सा बने। रविशंकर जलाशय गंगरेल डैम के मुहाने से शुरू हुई इस हाफ मैराथन को तीन श्रेणियों में आयोजित किया गया। इसमें गंगरेल हाफ मैराथन, एन्डुरन्स रन और वॉकेथॉन शामिल है।




गौरतलब है कि गंगरेल हाफ मैराथन के तहत 21.1 किलोमीटर का मैराथन में 18 से 29 वर्ष, 30 से 49 वर्ष तक की आयु वर्ग तथा 50 वर्ष से अधिक आयु के प्रतिभागी हिस्सा लिये । इसी तरह एन्डुरन्स रन के तहत 10 किलोमीटर का मैराथन में 15 से 29 वर्ष, 30 से 49 वर्ष तक की आयु तथा 50 वर्ष से अधिक आयु के प्रतिभागी शामिल हुए। इसके साथ ही पारिवारिक मनोरंजन के लिए वॉकेथॉन के तहत 5 किलोमीटर का मैराथन में पुरुष और महिला दोनों श्रेणी में लोग हिस्सा लेते नज़र आये। ज्ञात हो यह पूरा आयोजन गंगरेल डैम के गेट से लेकर कुकरेल तक आयोजित किया गया।
रायपुर- धमतरी के रविशंकर जलाशय गंगरेल में आयोजित दो दिवसीय जल जगार महा उत्सव के दूसरे दिन रायपुर सहित प्रदेश के अन्य जिलों से प्रतिभागी और लोग पहुँचे। इस दौरान सबमें जल ओलंपिक को लेकर भारी उत्साह देखने को मिला। यहाँ पहुँचे लोगों ने कयाकिंग, स्वींमिंग, बनाना राईड, फ्री स्टाईल स्वीमिंग, फ्लैग् रैन, थ्रो रो, रिवर क्रॉसिंग आदि का भरपूर आनंद लिया।



इस अवसर पर रायपुर के संजय बच्चानी, अमित गोयल, राकेश ने धमतरी में जल संरक्षण के लिए की गयी पहल विशेषकर सामुदायिक सहभागिता से किए गए प्रयास और उसके परिणाम को खूब सराहा। प्रतिभागियों का मानना है कि यह केवल शासन-प्रशासन की ज़िम्मेदारी नहीं, बल्कि पूरे समाज की ज़िम्मेदारी है कि जल संरक्षण के लिए जागरूक हों और पानी की हर बूँद को बचाने की कोशिश करें। उन्होंने कहा कि गिरते भूजल स्तर, पेड़ों की कटाई, सॉइल इरोशन सब विषयों पर चिंता करते हुये भविष्य के लिए जल और पर्यावरण संरक्षण हेतु वॉटर हार्वेस्टिंग संरचनायें, पौधारोपण की दिशा में काम करना चाहिए। यहाँ जल ओलंपिक में बिलासपुर से आए वेदांत वर्मा ने बताया कि तैराकी उनका शौक़ है, इसलिए जल ओलंपिक में वे हिस्सा ले रहे हैं। उन्होंने कहा कि जल संरक्षण के लिए सभी को आगे आना चाहिए, क्योंकि जल है तो कल है। गौरतलब है कि ज़िला प्रशासन ने जल जगार महा उत्सव में जल ओलंपिक के लिए गंगरेल बांध में प्रतिभागियों के लिए लाइफ जैकेट, मेडिकल किट सहित सुरक्षा के पुख्ता इंतज़ाम किए हैं।
Oct 07 2024, 15:33
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