जल जगार महा उत्सव और अंतरराष्ट्रीय जल सम्मेलन के समापन कार्यक्रम में शामिल हुए डॉ. रमन सिंह और उप मुख्यमंत्री अरुण साव
रायपुर- छत्तीसगढ़ विधानसभा के अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह और उप मुख्यमंत्री अरुण साव आज धमतरी के गंगरेल बांध के किनारे आयोजित दो दिवसीय जल जगार महा उत्सव और अंतरराष्ट्रीय जल सम्मेलन के समापन कार्यक्रम में शामिल हुए। लोगों को जल संरक्षण और जल संचय के प्रति जागरूक करने दो दिवसीय जल जगार महा उत्सव के दौरान विभिन्न कार्यक्रमों और गतिविधियों का आयोजन किया गया था। इन गतिविधियों में धमतरी जिले के साथ ही प्रदेशभर के लोगों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। इस मौके पर आयोजित अंतरराष्ट्रीय जल सम्मेलन में चार देशों के प्रतिनिधियों सहित देश के प्रसिद्ध पर्यावरणविदों, जल संरक्षकों, नीति निर्माताओं, विशेषज्ञों और गैर-सरकारी संगठनों ने अपनी बातें रखीं।
छत्तीसगढ़ विधानसभा के अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह ने जल जगार महा उत्सव के समापन समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि जल की एक-एक बूंद को बचाने की चिंता करने के लिए इस जल जगार महा उत्सव का आयोजन किया गया है। इस दौरान आयोजित विभिन्न गतिविधियों में भारी संख्या में लोगों की भागीदारी को देखकर इसकी सफलता का अंदाजा लगाया जा सकता है। हजारों लोग इनमें भागीदार बन रहे हैं। डॉ. सिंह ने कहा कि पर्यावरण के प्रति यदि हम अभी सचेत नहीं हुए तो भू-जल भी प्रदूषित हो जाएगा। उन्होंने कहा कि देश-विदेश के विशेषज्ञों, सुप्रसिद्ध पर्यावरणविदों और जल के संरक्षण-संवर्धन के लिए जिन लोगों ने अपना जीवन खपा दिया, ऐसे लोगों को धमतरी की धरती पर बुलाकर इस शानदार आयोजन के लिए मैं जिला प्रशासन की पूरी टीम को बधाई देता हूं।
उप मुख्यमंत्री अरुण साव ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि जल संचय और जल संरक्षण पूरी दुनिया में आसन्न जल संकट से निपटने का एकमात्र उपाय है। इसके लिए पूरी दुनिया में चर्चा हो रही है और जरुरी कदम उठाए जा रहे हैं। समाज और आम लोगों को भी इसके लिए आगे आना होगा, तभी हम अपनी जल धरोहरों को बेहतर ढंग से संरक्षित कर पाएंगे। उन्होंने कहा कि यह मेरा सौभाग्य है कि पीएचई और नगरीय प्रशासन मंत्री के रूप में राज्य के ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में लोगों को स्वच्छ और सुरक्षित पेयजल आपूर्ति की महती जिम्मेदारी मेरे विभागों की है। श्री साव ने जल जीवन मिशन, जल शक्ति अभियान, अमृत सरोवर, मिशन अमृत और एक पेड़ मां के नाम जैसे अभियानों का उल्लेख करते हुए कहा कि कि भारत सरकार की अनेक महत्वाकांक्षी कार्यक्रम और अभियान जल और पर्यावरण के संरक्षण-संवर्धन को समर्पित हैं। उन्होंने माता अंगार मोती की पवित्र धरती पर जल जगार महा उत्सव और अंतरराष्ट्रीय जल सम्मेलन के सफल आयोजनों के लिए जिला प्रशासन की पीठ थपथपाई।
जल जगार महा उत्सव और अंतरराष्ट्रीय जल सम्मेलन के समापन कार्यक्रम को सांसद भोजराज नाग और रुपकुमारी चौधरी ने भी संबोधित किया। समापन कार्यक्रम में स्कूली बच्चों ने महा उत्सव के तहत आयोजित जल विधानसभा के अपने अनुभवों को साझा किया। उन्होंने इस दौरान विधानसभा अध्यक्ष, मुख्यमंत्री और नेता प्रतिपक्ष की अपनी भूमिकाओं की झलक भी दिखाई।
अंतरराष्ट्रीय जल सम्मेलन के समापन सत्र मे वनमंडलाधिकारी कृष्णा जाधव ने अपने प्रतिवेदन मे बताया कि दो दिवसीय अंतराष्ट्रीय जल सम्मलेन में देश-विदेश के 150 से ज्यादा प्रतिनिधि, 69 जल विशेषज्ञ और वक्तागण सहित पद्मश्री से सम्मानित तीन पर्यावरणविद शामिल हुए। डेनमार्क, जापान, श्रीलंका और यूनिसेफ़ के प्रतिनिधियों ने भी अपनी भागीदारी दी। उन्होंने कहा कि इस सम्मलेन से जल प्रबंधन और संचयन के क्षेत्र में नया दृष्टिकोण मिला है। निश्चित रूप से इस सम्मलेन से जिले में जल संचय और जल संरक्षण के कार्यों को नई दिशा मिलेगी। श्री जाधव ने कहा कि नारी शक्ति से जल शक्ति तक की सोच ने जल जगार जैसे नवाचारी अभियान को मूर्त रूप दिया। इस अवसर पर कलेक्टर नम्रता गाँधी ने सम्मेलन के निष्कर्षों और सुझावों को अतिथियों को सौंपा। विधायक रोहित साहू और दीपेश साहू तथा पिछड़ा वर्ग आयोग के अध्यक्ष नेहरु निषाद भी जल जगार महा उत्सव के समापन कार्यक्रम में शामिल हुए।

रायपुर- छत्तीसगढ़ विधानसभा के अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह और उप मुख्यमंत्री अरुण साव आज धमतरी के गंगरेल बांध के किनारे आयोजित दो दिवसीय जल जगार महा उत्सव और अंतरराष्ट्रीय जल सम्मेलन के समापन कार्यक्रम में शामिल हुए। लोगों को जल संरक्षण और जल संचय के प्रति जागरूक करने दो दिवसीय जल जगार महा उत्सव के दौरान विभिन्न कार्यक्रमों और गतिविधियों का आयोजन किया गया था। इन गतिविधियों में धमतरी जिले के साथ ही प्रदेशभर के लोगों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। इस मौके पर आयोजित अंतरराष्ट्रीय जल सम्मेलन में चार देशों के प्रतिनिधियों सहित देश के प्रसिद्ध पर्यावरणविदों, जल संरक्षकों, नीति निर्माताओं, विशेषज्ञों और गैर-सरकारी संगठनों ने अपनी बातें रखीं।

















रायपुर- रायपुर सांसद एवं पूर्व शिक्षा मंत्री बृजमोहन अग्रवाल ने रविवार को राजधानी रायपुर के जे.आर.दानी शास. कन्या उत्कृष्ट, हिन्दी माध्यम विद्यालय में 24 वीं राज्यस्तरीय शालेय क्रीड़ा प्रतियोगिता का शुभारंभ किया। 9 अक्टूबर तक चलने वाली इस प्रतियोगिता में 5 संभाग के 1790 प्रतिभागी और 300 कोच तथा मैनेजर हिस्सा लेंगे।




रायपुर- छत्तीसगढ़ के वित्त विभाग ने साय सरकार के दूसरे बजट (2025-26) के लिए सीमा रेखा निर्धारित कर दी है. वित्त सचिव ने सभी विभागों को निर्देश दिया है कि वे चालू वर्ष के बजट से केवल 8% की वृद्धि करते हुए नए प्रावधान भेजें. विभागों की ओर भेजे जाने वाले संबंधित प्रस्तावों के अनुसार अंदाजा लगाया जा सकता है कि आगामी बजट 1.59 लाख करोड़ रुपये का हो सकता है.
राजनांदगांव- अंतरराष्ट्रीय हॉकी स्टेडियम में 3 अक्टूबर से आयोजित शालेय खेल प्रतियोगिता का रविवार को समापन हुआ. प्रतियोगिता में पांच संभागों के 945 खिलाड़ियों ने हिस्सा लिया. प्रतियोगिता की आयोजन की बागडोर 100 शिक्षकों ने संभाली. प्रतियोगिता में ओवरऑल विजेता दुर्ग संभाग रहा.
सूरजपुर- जिले में अवैध रेत उत्खनन का खेल थमने का नाम नहीं ले रहा है. राजापुर, कुरवा और प्रतापपुर की नदियों में बड़े पैमाने पर रेत का अवैध खनन धड़ल्ले से जारी है. इन क्षेत्रों की नदियों में प्रतिदिन दर्जनों गाड़ियों के जरिए अवैध रूप से रेत का उत्खनन किया जा रहा है. रेत माफिया खुलेआम नियमों की अनदेखी कर रहे हैं, जिससे नदियों के अस्तित्व पर संकट मंडराने लगा है.
रायपुर- लोगों को जल से जोड़ने एवं सामुदायिक सहभागिता के उद्देश्य गंगरेल जहां दो दिवसीय जल जगार महा उत्सव मनाया जा रहा है। वहाँ समुदाय का हर वर्ग इसका अंग बने यह भी कोशिश है। इसी कोशिश का एक हिस्सा है जल सभा। धमतरी शहर से लगभग 14 किलोमीटर की दूरी पर गंगरेल में स्थित रविशंकर जलाशय गंगरेल में जल(डैम) के निकट जल सभा का भी आयोजन हो रहा है।






बिलासपुर- अध्यापिका की कहानी को न मानते हुए हाई कोर्ट ने कथित दुष्कर्म के आरोपी शिक्षक को दोष मुक्त करने के खिलाफ पेश अपील को खारिज कर दिया. मामले की सुनवाई में हाई कोर्ट ने पाया कि अपीलकर्ता शिक्षिका ने संबंध बनाने की सहमति दी थी.
रायपुर- छत्तीसगढ़ स्टेट पाॅवर कंपनीज के नवनियुक्त अध्यक्ष डाॅ. रोहित यादव ने कार्यभार संभालने के दूसरे दिन 5 अक्टूबर को स्टेट लोड डिस्पैच सेंटर का अवलोकन किया. इसके साथ तीनों कंपनियों – उत्पादन, पारेषण, वितरण की पृथक-पृथक परिचयात्मक बैठक ली.
रायपुर- धमतरी में जल-जगार महा उत्सव के दौरान आयोजित अंतरास्ट्रीय जल सम्मेलन में छत्तीसगढ़ में बने जल शुद्धिकरण की जैविक तकनीक ई-बाल को मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने सराहा। उन्होंने जल शुद्धिकरण की इस अभिनव तकनीक को आज की आवश्यकता बताया। साथ अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन में आये विदेशी जल विशेषज्ञों को खूब पसंद आया, उन्होंने इस तकनीक को बारीकी से समझा और इस पर काम करने में दिलचस्पी दिखाई। जल जगार महोत्सव में पानी शुद्धिकरण की इस तकनीक का जीवंत प्रदर्शन महोत्सव स्थल पर किया गया था जहां पर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय एवं अतिथियों ने भी इस तकनीक को समझा और सराहा।
Oct 06 2024, 23:15
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