एलपीजी गैस सिंलेंडर की कीमत में 100 रुपये की छूट पर मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री का जताया आभार

लखनऊ। अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर एलपीजी गैस सिलेंडर की कीमतों में 100 रुपये की छूट के निर्णय पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेशवासियों की ओर से प्रधानमंत्री मोदी का आभार व्यक्त किया है। अपने एक्स अकाउंट पर लिखते हुए मुख्यमंत्री ने इस फैसले को मातृशक्ति का सम्मान और पर्यावरण को संरक्षित करने वाली लोक-कल्याणकारी सौगात बताया है।

मुख्यमंत्री ने लिखा, ''''आज ''महिला दिवस'' के अवसर पर एलपीजी सिलेंडर की कीमतों में 100 की छूट का निर्णय करोड़ों परिवारों को आर्थिक राहत देने के साथ ही मातृशक्ति को धुंए और प्रदूषण से मुक्ति दिलाकर स्वस्थ व खुशहाल जीवन प्रदान करेगा। मातृशक्ति के सम्मान और पर्यावरण को संरक्षित करने वाली इस लोक-कल्याणकारी सौगात के लिए प्रदेश वासियों की ओर से प्रधानमंत्री का हार्दिक आभार।

छेड़खानी करना पड़ा भारी, कासगंज में युवक पर पेट्रोल डालकर लगाई आग, रेफर

लखनऊ । कासगंज नगर के सोरो गेट स्थित एक मोहल्ले में शुक्रवार की सुबह युवती से छेड़छाड़ करना युवक को भारी पड़ गया। युवती के भाईयों ने युवक पर पेट्रोल डालकर आग लगा दी। जिससे वह गंभीर रूप से झुलस गया। युवक 70 फीसद जल गया है। प्राथमिक उपचार के बाद उसे अलीगढ़ मेडिकल कॉलेज रेफर किया गया।

सोरों गेट क्षेत्र स्थित एक मोहल्ले के निवासी युवक विशाल कुमार पर आरोप है कि उसने शुक्रवार की सुबह मोहल्ले की ही निवासी युवती के साथ छेड़छाड़ कर दी। इस घटना से आक्रोशित हुए युवती के भाईयों ने युवक के साथ मारपीट की। उस पर पेट्रोल डालकर आग लगा दी। आग की लपटों से घिरा युवक नाले में कूद गया। उसके शरीर से निकल रही आग तो बुझ गई, लेकिन वह गंभीर रूप से घायल हो गया। आनन-फानन में परिजन उसे स्वास्थ्य केंद्र लाए। जहां चिकित्सकों ने प्राथमिक उपचार किया। युवक को 70 फीसद तक जला हुआ बताया और उसकी हालत गंभीर देखते हुए अलीगढ़ रेफर कर दिया है। इंस्पेक्टर सुधीर राघव का कहना है कि घटना संज्ञान में नहीं है। जांच कर कार्रवाई की जाएगी।

पारा में नहर में युवक का शव मिलने से मचा हड़कंप

लखनऊ। राजधानी के थाना पारा क्षेत्र में स्थित शारदा नहर मे एक युवक का शव मिलने से हड़कंप मच गया। स्थानीय लोगों ने नहर में शव पड़े होने कि जानकारी पुलिस को दी। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को कब्जे में लेने के बाद पोस्टमार्टम को भेज दिया।

पुलिस के अनुसार मृतक रिषभ सिंह पुत्र स्व इन्दल सिंह न्यू कांशीराम कालोनी हंसखेडा थाना पारा का निवासी था। बीते तीन मार्च को वह अपनी मां से झगड़ा करके आत्महत्या की धमकी देकर चला गया था। काफी देर तक युवक जब वापस नहीं लौटा तो चार मार्च को परिजनों की शिकायत पर पुलिस ने उसकी गुमशुदगी दर्ज कर ली और युवक की तलाश में जुट गई। अभी पुलिस मामले की जांच कर रही थी की शुक्रवार सुबह नहर में युवक का शव मिलने की सूचना मिली तो मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।

इसी दौरान जब शव की शिनाख्त की गई तो पता चला की यह उसी लड़के का शव है जिसकी पुलिस ने गुमशुदगी दर्ज की थी। थाना प्रभारी निरीक्षक बृजेश वर्मा ने जानकरी देते हुए कहा की नहर में मिले शव की शिनाख्त हो गई है। नहर में मिला शव मृतक रिषभ सिंह पुत्र स्व इन्दल सिंह न्यू कांशीराम कालोनी हंसखेडा थाना पारा का निवासी था। जो की माँ से झगड़ा करके आत्महत्या करने की धमकी देकर घर से चला गया था। जिसके बाद गुरुवार को युवक का शव नहर में मिला।

डीजीपी की एसएसबी डीजी से शिष्टाचार भेंट

लखनऊ । पुलिस महानिदेशक प्रशान्त कुमार से गुरुवार को पुलिस मुख्यालय में पुलिस महानिदेशक एसएसबी दलजीत सिंह चौधरी द्वारा शिष्टाचार भेंट कर शुभकामनाएं दी गयी तथा प्रतीक चिन्ह भेंट किये गये। मुलाकात के दौरान उत्तर प्रदेश पुलिस और एसएसबी के मध्य समन्वय बनाने के लिए उत्तर प्रदेश के इण्डो नेपाल बार्डर पर अचूक सुरक्षा व्यवस्था को प्रभावी गश्त, चेकिंग एवं पेट्रोलिंग के सम्बन्ध के सम्मिलित प्रयास की रणनीति तथा आगामी लोक सभा चुनाव एवं सामरिक महत्व के मुद्दों पर चर्चा की गयी।

दूसरी तरफ डीजीपी प्रशांत कुमार चीफ पोस्ट मास्टर जीपीओ सुशील कुमार तिवारी द्वारा शिष्टाचार भेंट कर शुभकामनाएं दी गयी। मुलाकात के दौरान चीफ पोस्ट मास्टर जीपीओ लखनऊ द्वारा पुलिस महानिदेशक यूपी को श्रीराम जन्म भूमि मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा के अवसर पर जारी डाक टिकट का प्रतीक चिन्ह भेंट किया गया।

पूर्व डीजीपी राजकुमार विश्वकर्मा मुख्य सूचना आयुक्त बनाए गए

लखनऊ । मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में गठित चयन समिति की सिफारिश पर राज्यपाल आनंदी बेन पटेल ने गुरुवार को उत्तर प्रदेश सूचना आयोग के लिए मुख्य सूचना आयुक्त और 10 सूचना आयुक्तों की नियुक्ति की है। इसमें राज्य के पूर्व डीजीपी राजकुमार विश्वकर्मा को उत्तर प्रदेश का नया सूचना आयुक्त नियुक्त किया गया है। पूर्व आईपीएस राजकुमार विश्वकर्मा यूपी पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड के अध्यक्ष के साथ ही विभिन्न जनपदों में वरिष्ठ पुलिस अधिकारी के रूप में अपनी सेवाएं दे चुके हैं।

इनके अलावा सुधीर कुमार सिंह (सेवानिवृत्त पुलिस अधिकारी), गिरजेश कुमार चौधरी (सेवानिवृत्त पुलिस अधिकारी), डॉ दिलीप कुमार अग्निहोत्री (एसोसिएट प्रोफेसर), पद्म नारायण द्विवेदी (वरिष्ठ पत्रकार), स्वतंत्र प्रकाश (वरिष्ठ अधिवक्ता), मोहम्मद नदीम (वरिष्ठ पत्रकार), राजेन्द्र सिंह, शकुंतला गौतम (सेवानिवृत्त आईएएस अधिकारी), राकेश कुमार (पूर्व न्यायिक अधिकारी) और विरेन्द्र प्रताप सिंह (वरिष्ठ पत्रकार) को प्रदेश का सूचना आयुक्त नियुक्त किया गया है ।

महाशिवरात्रि: प्रदेश में सुरक्षा व्यवस्था के कड़े इंतजाम: डीजीपी

लखनऊ । डीजीपी प्रशांत कुमार ने बताया कि महाशिवरात्रि पर्व के विभिन्न आयोजनों को सकुशल सम्पन्न कराने के लिए मुख्यालय स्तर से 230 कम्पनी पीएसी बल, 3 कम्पनी एसडीआरएफ, 8 कम्पनी सीएपीएफ को राजपत्रित अधिकारियों के नेतृत्व में ड्यूटी लगाई गई। कमिश्नरेट वाराणसी, जनपद बाराबंकी तथा बागपत में वृहद आयोजनों तथा श्रद्धालुओं की अपार संख्या के दृष्टिगत पुलिस मुख्यालय स्तर से अतिरिक्त अपर पुलिस अधीक्षक-2, पुलिस उपाधीक्षक-5, उप निरीक्षक-85, म.उ.नि.-8, आरक्षी-275, म.आरक्षी-50, निरीक्षक व उप निरीक्षक यातायात 5, मुख्य आरक्षी/आरक्षी यातायात-6, बीडीडीएस टीम-3, एण्टी माइन्स टीम, ए.एस. चेक टीम तथा एटीएस की कमाण्डो टीमों को भी समस्त आवश्यक उपकरणों संसाधनों सहित व्यवस्थापित किया गया है।

महाशिवरात्रि पर्व को सकुशल सम्पन्न कराने के लिए के अवसर पर सादे वस्त्रों में भी महिला व पुलिस कर्मियों की टीमें बाडी वार्न कैमरे, वाइना कूलर, ड्रैगन लाइट, एचएचएमडी, वायरलेस स्टेटिक व हैण्ड हेल्ड सेट तथा लाउड हेलर के साथ लगाया गया है। समस्त प्रमुख आयोजन स्थलों, जल लेने के समस्त प्रमुख स्थानों (नदी घाट) तथा जल चढ़ाने के महत्वपूर्ण शिवालय व मन्दिरों के आस-पास तथा संवेदनशील स्थलों पर ड्रोन कैमरे तथा हाई रिजोल्यूशन सीसीटीवी कैमरे के माध्यम से निगरानी रखी जा रही है।

महाशिवरात्रि आज, मंदिरों पर रहेगा कड़ा पहरा ,पुलिस के साथ-साथ पीएसी की भी लगाई गई ड्यूटी

लखनऊ । महाशिवरात्रि पर्व शुक्रवार को मनाया जाएगा। चूंकि इस पर्व पर बड़ी संख्या में शिव मंदिरों पर जलाभिषेक करने वालों की भारी भीड़ होती है। जिसे देखते हुए कमिश्नरेट पुलिस द्वारा सुरक्षा व्यवस्था के पुख्ता इंतजाम किये गये है। ताकि जलाभिषेक के दौरान शिव भक्तों को किसी प्रकार की परेशानी का सामना न करना पड़े। इसके साथ ही नगर में कई स्थानों पर शोभायात्रा भी निकाली जाएगी। शोभा यात्रा का सकुशल सम्पन्न कराने के लिए अलग से पुलिस व पीएसी की ड्यूटी लगाई गई है।

महाशिवरात्रि पर्व पर सुरक्षा व यातायात व्यवस्था को बनाये रखने के संयुक्त पलिस आयुक्त ने गोष्टी कर समस्त अधिकारियों को निर्देशित किया। संयुक्त पलिस आयुक्त, कानून एवं व्यवस्था उपेंद्र अग्रवाल ने महाशिवरात्रि पर्व की पूर्व संध्या पर समस्त पुलिस उपायुक्त जोन्स, अपर पुलिस उपायुक्त जोन्स व सहायक पुलिस आयुक्त सर्किल के साथ गोष्टी कर आवश्यक दिशा निर्देश देते हुए कहा कि महाशिवरात्रि पर्व के अवसर पर जनपद के सभी मन्दिरों में पुजा अर्चना व जलाभिषेक किया जाता है। जिसमें बड़ी संख्या में लोग मन्दिरों में जाते हैं। ऐसे 26 मुख्य-मुख्य मन्दिर जहां श्रद्धालुओं की अत्यधिक भीड़ होती है को चिन्हांकन कर अतिरिक्त पुलिस बल लगाये जाने के निर्देश दिये।

ताकि मन्दिरों में अव्यवस्था उत्पन्न न होने पाये तथा असामाजिक तत्वों द्वारा कारित की जाने वाली छेड़छाड़ आदि की घटनाओं पर अंकुश लगाया जा सके। इस पर्व के अवसर पर जनपद के सभी जोन्स में अलग-अलग स्थानों पर आयोजित होने वाले कार्यक्रमों के क्रम में लगभग 36 शोभायात्राएं शिवबारात, 14 मेला व 20 अन्य कार्यक्रम जलाभिषेक आदि का चिन्हांकन किया गया है। सुरक्षा एवं कानून व्यवस्था को ध्यान में रखते हुए अत्यधिक पुलिस बल लगाये जाने के निर्देश दिये गये। ताकि समस्त कार्यक्रम शान्तिपूर्ण ढंग से सकुशल सम्पन्न हो सकें।

वही थाना पारा क्षेत्र में स्थित बुधेश्वर महादेव मन्दिर व थाना हसनगज के मनकामेश्वर महादेव मन्दिर में सर्वाधिक संख्या में श्रद्धालु आते हैं,जिसके चलते मन्दिरों पर सुरक्षा व्यवस्था के अतिरिक्त पुलिस बल तथा मंदिरो तक पहुंचने वाले मागों पर सुचारू यातायात व्यवस्था के दृष्टिगत विभिन्न स्थानों पर 16 उपनिरीक्षक यातायात, 45 मुख्य आरक्षी, आरक्षी यातायात तथा 21 होमगार्ड यातायात की ड्यूटी लगायी गयी है। महाशिवरात्रि पर्व को सकुशल सम्पन्न कराने के लिए 7 कम्पनी पीएसी एवं जनपद में नियुक्त समस्त पुलिस बल की ड्यटी लगायी जा रही है।

यूपी में आयुष के जरिए हेल्थ टूरिज्म सेक्टर में असीम संभावनाएं : योगी आदित्यनाथ

लखनऊ। प्रदेश में आयुष पद्धति के जरिए हेल्थ टूरिज्म के सेक्टर में सबसे अधिक संभावनाएं हैं। आयुष से जुड़ी सभी पद्धतियों को प्रोफेशनल तरीके से लागू कर दें तो पूरी दुनिया हमारे पारंपरिक चिकित्सा पद्धति का अनुसरण करेगी। इससे न केवल संपूर्ण आरोग्यता के लक्ष्य को प्राप्त करने में, बल्कि बड़े स्तर पर नौकरी ओर रोजगार के अवसरों के सृजन में भी मदद मिलेगी। इतना ही नहीं आयुष चिकित्सा पद्धति के जरिए अन्नदाताओं की आमदनी को भी कई गुना तक बढ़ाया जा सकेगा। ये बातें मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को लोकभवन सभागार में आयोजित आयुष विभाग के कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कही। 

₹238 करोड़ की 271 परियोजनाओं का हुआ लोकार्पण 

इस अवसर पर उन्होंने ₹238 करोड़ से बस्ती, बलिया, जालौन और रायबरेली में 50 शैय्या वाले एकीकृत आयुष चिकित्सालय, 226 आयुष्मान आरोग्य मंदिर, प्रयागराज और झांसी में छात्राओं के लिए छात्रावासों का निर्माण, पांच ई-लाइब्रेरी, प्रदेश के अलग-अलग 19 होम्योपैथिक एवं 14 आयुर्वेदिक विभागों में हुए निर्माण कार्य सहित 271 विकास परियोजनाओं का लोकार्पण भी किया। 

जनविश्वास का प्रतीक बन रहा है आयुष 

अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री की प्रेरणा से यूपी में आयुष मिशन तेजी के साथ जनविश्वास का प्रतीक बनता जा रहा है। आज लोकार्पित हुई परियोजनाएं इसका लघु उदाहरण प्रस्तुत कर रही हैं। जिस आयुष मिशन के बारे में भारतीय मनीषा की धारणा रही हो कि 'नास्ति मूलं अनौषधं' यानी कोई जड़ी नहीं जो औषधीय गुणों से युक्त ना हो, मगर अज्ञानता और उपेक्षा के कारण हमारी ये पारंपरिक विधा कालांतर में लुप्तप्राय हो गयी थी। प्रधानमंत्री मोदी ने जब आयुष मंत्रालय का गठन किया और पारम्परिक चिकित्सा को प्राथमिकता देकर प्रोत्साहित किया, तो देखते ही देखते देश ही नहीं पूरी दुनिया ने इसके महत्व को समझना शुरू कर दिया। हमने पिछले चार साल में इस सदी की सबसे बड़ी महामारी का सामना किया। इस दौरान दुनिया ने पारंपरिक मेडिकल के महत्व को समझा। पीएम मोदी के अभियान के फलस्वरूप प्रतिवर्ष 21 जून को पूरी दुनिया योग करती दिख रही है। कोरोना काल में पूरा विश्व आयुष का काढ़ा पीते दिखा। दुनिया आज पारम्परिक चिकित्सा पद्धति को अपना रही है। 

जल्द होगा निदेशालय का गठन 

मुख्यमंत्री ने बताया कि आयुष विभाग की ओर से नई पहल की जा रही है। विभाग जल्द एक निदेशालय के गठन की कार्रवाई को मूर्तरूप देने जा रहा है। इसके तहत आयुष की सभी विधाओं के लिए अबतक अलग अलग निदेशक होते थे, अब इन सब के बीच परस्पर समन्वय बनाने के लिए महा निदेशक भी होंगे। उन्होंने बताया कि यूपी आयुर्वेद की धरती रही है। भगवान धनवंतरी और सुश्रुत जिन्होंने शल्य चकित्सा के ज्ञान को इसी प्रदेश की धरती से आगे बढ़ाया, ऐसे में अब हमारा दायित्व है कि हम भी आयुष चिकित्सा पद्धति को और आगे लेकर जाएं। उन्होंने जोर देकर कहा कि अन्नदाता किसानों की आमदनी को कई गुना बढ़ाने में आयुष पद्धति पर आधारित कृषि बहुत उपयोगी हो सकती है। हमें इसके लिए अपने रिसर्च को बढ़ाना होगा साथ ही साथ किसानों को प्रोत्साहित करना होगा। 

इस अवसर पर आयुष विभाग के राज्यमंत्री डॉ दयाशंकर मिश्र 'दयालु', प्रदेश के मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र, आयुष विभाग की प्रमुख सचिव लीना जोहरी, विधायक नीरज वोहरा, योगेश शुक्ल, जय देवी कौशल, एमएलसी मोहसिन रजा, लाल जी निर्मल, रामचंद्र प्रधान, आयुष विभाग के डायरेक्टर महेन्द्र वर्मा, शिक्षकगण, डॉक्टर आदि गणमान्य लोग उपस्थित रहे।

पहले इटावा-सैफई के नाम से डरते थे लोग,आज सैफई में देश के लोग कर रहे नौकरी : मुख्यमंत्री योगी

लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सैफई पहुंचकर सैफई मेडिकल विश्वविद्यालय में नवनिर्मित पांच सौ शैया सुपर स्पेशलिटी ब्लॉक का लोकार्पण और नवनियुक्त कार्मिकों को नियुक्ति पत्र वितरित किए।इस मौके पर योगी आदित्यनाथ ने डॉक्टरों को संबोधित करते हुए मरीजों के साथ अच्छा व्यवहार करने और अच्छा उपचार करने की नसीहत दी। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव का नाम लिए बिना तंज कसते हुए उन्होंने कहा कि पहले लोग इटावा-सैफई के नाम से डरते थे,आज सैफई में देश के लोग आकर नौकरी कर रहे हैं।

इस मौके पर उनके साथ उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक और राज्यमंत्री मयंकेश्वर सिंह भी मौजूद रहे। पांच सौ करोड़ की लागत से बनकर तैयार हुए इस सुपर स्पेशलिटी ब्लॉक को आज मुख्यमंत्री योगी ने जनता को समर्पित किया। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने यूनिवर्सिटी के डॉक्टरों को मरीजों के साथ अच्छा व्यवहार करने और अच्छे से इलाज करने की नसीहत दी।मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सैफई में पांच सौ करोड़ की लागत से बनकर तैयार सुपर स्पेशलिटी अस्पताल का लोकार्पण और जनप्रतिनिधियों द्वारा पास करवाई गई 147 करोड़ की 37 परियोजनाओं का लोकार्पण किया।

मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि पिछली सरकार ने इस सुपर स्पेशलिटी अस्पताल का प्रोजेक्ट तो पास किया, लेकिन पैसे नहीं दिए थे। पांच सौ करोड़ के प्रोजेक्ट के लिए पिछली सरकारों ने टोकन मनी देते थे, वह केवल नारियल फोड़कर परियोजनाओं का लोकार्पण कर देते थे लेकिन पैसा नहीं देते थे। उन्होंने कहा कि कोरोना काल में जब वह यहां पर आए थे तब उन्हें इस सुपर स्पेशलिटी अस्पताल के बारे में पता चला था और लखनऊ पहुंचते ही उन्होंने इस प्रॉजेक्ट के लिए पैसे जारी कर दिए थे।उन्होंने मुलायम सिंह यादव को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि वह अपने इस ग्रामीण क्षेत्र में चिकित्सीय विश्वविद्यालय की नींव रखी थी,वह बधाई के पात्र हैं। कहा कि आज यहां पर देश के दूर-दराज इलाकों से आकर पढ़ाई कर रहे हैं और दूर-दूर से आकर इलाज करवा रहे हैं।मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि हमारी सरकार ने इंसेफलाइटिस पर नियंत्रण करने में सफलता हासिल की है। पहले गोरखपुर बस्ती बहराइच की तरफ हर घर में इंसेफलाइटिस का मरीज मिलता था। आज हर जनपद में फ्री डायलासिस की सुविधा और कार्डिक वैन उपलब्ध है। आज हर जनपद में लोग आयुष्मान योजना का लाभ लेकर पांच लाख रुपये के फ्री में इलाज करवाने का लाभ ले रहे हैं।उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आने से पहले ही सबका साथ सबका विकास का नारा दे दिया था। सैफई में डॉक्टरों को संबोधित करते हुए सीएम योगी आदित्यनाथ ने मरीज का अच्छे से इलाज करने और अच्छे से व्यवहार करने की अपील की।

प्रदेश के विकास में मातृभूमि के प्रवासी नागरिकों का लिया जाएगा सहयोग : एके शर्मा

लखनऊ।प्रदेश सरकार राज्य के ऐसे सम्मानित नागरिकों को जो प्रदेश के बाहर देश के किसी अन्य राज्य में या फिर विदेश में प्रवास कर रहे हैं और वे अपनी मातृभूमि व प्रदेश के विकास में अपना योगदान देना चाहते हैं, ऐसे नागरिकों के लिए "उत्तर प्रदेश मातृभूमि अर्पण योजना" क्रियान्वित करने जा रही है। प्रदेश के नगर विकास एवं उर्जा मंत्री ए.के. शर्मा ने कैबिनेट बैठक में इस योजना की मंजूरी मिलने के बाद प्रेसवार्ता में इसकी जानकारी दी। उन्होंने कहा कि इस योजना के माध्यम से प्रदेश के प्रवासी नागरिकों को एक उचित प्लेटफार्म उपलब्ध कराया जाएगा, जिसके माध्यम से उन्हें प्रदेश में विकास कार्यों को करने में सहूलियत होगी। साथ ही उत्तर प्रदेश के वे नागरिक जो राज्य के बाहर किसी अन्य प्रदेश में या किसी दूसरे देश में रहते हैं और अपनी मातृभूमि के लिए विकास से जुड़े कार्य करना चाहते हैं, वे इस योजना के तहत सरकार के साथ मिलकर अपनी भावनाओं और जरूरतों के मुताबिक यहां के विकास कार्यों में सहयोग दे सकते हैं।

मंत्री शर्मा ने बताया कि प्रदेश सरकार विकास कार्यों में तेजी लाने के साथ ही आधुनिक तकनीक के प्रयोग से कार्यों में गुणात्मक सुधार पर जोर दे रही है। जैसे कि उत्तर प्रदेश से बड़ी संख्या में लोग देश के विभिन्न शहरों व विदेशों में रहकर उन क्षेत्रों में व्यापक विकास कार्य कर वहां की अर्थव्यवस्था को बढ़ाने में अपना योगदान दें रहे हैं। देश के विभिन्न नगरों में निवासरत एवं देश से बाहर रह रहे ऐसे सुविधा सम्पन्न लोग अपनी मातृभूमि व नगर के विकास में भी अपना योगदान देना चाहते हैं, लेकिन कोई व्यवस्थित प्लेटफार्म उपलब्ध न होने की वजह से वांछित स्तर का सहयोग व योगदान प्रदान नहीं कर पा रहे हैं। ऐसे लोगों का विकास कार्यों में सहयोग लेने के लिए ही प्रदेश सरकार ने "उत्तर प्रदेश मातृभूमि अर्पण योजना" के क्रियान्वयन के लिए कदम बढ़ाया है।

उन्होंने कहा कि यदि कोई व्यक्ति या निजी संस्था किसी नगरीय निकाय में विकास कार्य, अवस्थापना सुविधाओं के विकास कार्यों को कराना चाहते हैं या स्वयं करना चाहते हैं, और कार्य की लागत का 60 प्रतिशत की धनराशि वहन करने को इच्छुक हैं, तो शेष 40 प्रतिशत धनराशि की व्यवस्था राज्य सरकार द्वारा की जाएगी, साथ ही निर्धारित आकार व प्रकार का कार्यों का शिलापट्ट व नेम प्लेट सहयोग करने वाले व्यक्ति या संस्था के प्रस्तावानुसार उस भवन अथवा अवस्थापना सुविधा के ऊपर यथोचित स्थान पर प्रदर्शित किया जाएगा। दानकर्ताओं के द्वारा संबंधित कार्य के लिए दान की गई राशि जमा करवाने के 30 दिनों के अंदर संबंधित कार्य की प्रशासनिक स्वीकृति की कार्यवाही संबंधित जनपद के जिलाधिकारी द्वारा संपन्न कराई जाएगी एवं कार्य की प्रगति की रिपोर्ट शासन को उपलब्ध कराई जाएगी। योजना के तहत होने वाले कार्यों की पुनरावृत्ति किसी अन्य योजना के माध्यम से न हो, यह तकनीक के प्रयोग (जियो टैगिंग आदि से) द्वारा सुनिश्चित किया जाएगा। साथ ही दान की जा रही राशि को योजना के तहत खुलवाए गए एस्क्रो अकाउंट में ही जमा कराया जाएगा।

विकास कार्य का 60 प्रतिशत तक वहन करेंगे विकासकर्ता

नगर विकास मंत्री एके शर्मा ने बताया कि देश या विदेश में रह रहे उत्तर प्रदेश के नागरिक या कोई निजी संस्था प्रदेश के किसी नगरीय निकाय में विकास कार्य, अवस्थापना सुविधा के विकास कार्यों को कराना चाहते हैं तो वह इस योजना के माध्यम से योगदान कर सकते हैं। इस योजना के तहत उन्हें विकास कार्य की लागत की 60 प्रतिशत धनराशि ही वहन करनी होगी, जबकि शेष 40 प्रतिशत धनराशि की व्यवस्था राज्य सरकार द्वारा की जाएगी। यही नहीं दानकर्ता या संस्था का नाम राज्य सरकार द्वारा निर्धारित आकार के शिलापट्ट/प्लेट पर प्रस्तावानुसार उस भवन या अवस्थापना सुविधा के ऊपर उचित स्थान पर प्रदर्शित किया जाएगा।

देश और विदेश में किया जाएगा योजना का प्रचार

मंत्री एके शर्मा ने बताया कि इस योजना के सुचारू क्रियान्वयन के लिए व्यापक स्तर पर पूरे देश एवं विदेशों में भी व्यापक प्रचार-प्रसार किया जाएगा। इसके लिए विभिन्न देशों में स्थित भारतीय दूतावासों का सहयोग लिया जाएगा तथा जिलाधिकारियों के माध्यम से उनके जनपद के देश के विभिन्न प्रदेशों एवं विदेश में रहने वाले लोगों को पत्र भेजकर इस योजना के संबंध में जानकारी उपलब्ध कराई जाएगी। यही नहीं, 26 जनवरी, 15 अगस्त एवं 02 अक्टूबर जैसे राष्ट्रीय पर्वों के दौरान आयोजित किए जाने वाले कार्यक्रमों तथा अन्य सरकारी कार्यक्रमों में ऐसे लोगों को मुख्य अतिथि के रूप में अमंत्रित किया जाएगा। इस योजना के प्रचार-प्रसार के लिए अन्य विकल्पों पर भी कार्यवाही सुनिश्चित की जाएगी।

नगर विकास मंत्री एके शर्मा ने बताया कि उत्तर प्रदेश से बड़ी संख्या में लोग देश के विभिन्न शहरों में व विदेशों में कार्यरत हैं। देश के विभिन्न नगरों में निवासरत एवं देश से बाहर गए सुविधा संपन्न लोग अपने नगर के विकास में अपना योगदान देना चाहते हैं, लेकिन कोई व्यवस्थित प्लेटफार्म उपलब्ध न होने की वजह से वांछित स्तर का सहयोग व योगदान प्रदान नहीं कर पा रहे हैं। ऐसे लोगों के लिए ही इस योजना का शुभारंभ किया गया है। उन्होंने बताया कि नगरीय निकायों में कार्य करने के लिए एक वृहद कार्य क्षेत्र मिला हुआ है। यह भी ज्ञात है कि इन समस्त कार्य क्षेत्रों में प्रभावी विकास करने के लिए और आवश्यक अवस्थापना सुविधाओं के सृजन के लिए अगर शासकीय धन व योजनाओं के साथ-साथ निजी सहभागिता को बढ़ाया जाए तो कार्य में तेजी आ सकती है। कार्य तेज गति से होने के साथ-साथ उसमें गुणात्मक सुधार और नए तकनीकी व विचार का समावेश भी हो सकता है। निजी निवेश, तकनीकी सहयोग एवं सुपरविजन उपलब्ध होने से कार्यों की गुणवत्ता में बढ़ोत्तरी होगी