सरायकेला :एनआइटी जमशेदपुर अब कपड़ों की नई वेराइटी को करेगा विकसित


सरायकेला: जिला के एनआईटी जमशेदपुर को वस्त्र उद्योग के लिए नई तकनीक विकसित करने की जिम्मेदारी दी गई है। वस्त्र मंत्रालय भारत सरकार की ओर से जमशेदपुर एनआईटी को टेक्निकल टेक्सटाइल इंस्टीट्यूट के रूप में विकसित करने की एक पहल की गई है। 

इसके तहत संस्थान को नई वेराइटी के वस्त्र निर्माण तकनीक विकसित करने के साथ इंडस्ट्री के लिए प्रशिक्षित व स्किल्ड मानव संसाधन तैयार करने की भी जिम्मेदारी दी गई है। इस पहल के तहत एनआईटी जमशेदपुर में शून्य तापमान के लिए फ्लेक्सिबल वस्त्र तैयार करने की जिम्मेदारी दी गई है। 

संस्थान में वस्त्र की नई वेराइटी तैयार करने के लिए बाकायदा लैब स्थापित किए जाएंगे। इसकी जिम्मेदारी मेकेनिकल इंजीनियरिंग विभाग को सौंपी गई है। मेकेनिकल इंजीनियरिंग विभाग के एचओडी प्रो. संजय के मुताबिक एनआईटी जमशेदपुर को टेक्निकल टेक्सटाइल एकेडेमिक इंस्टीट्यूट के रूप में विकसित करने की जिम्मेदारी संस्थान के फैकल्टी मेंबर डॉ. दीपक कुमार, डॉ. विनीत साहू, डॉ. दुलारी हांसदा, डॉ. शंकर कुमार राय समेत उन्हें (प्रो. संजय को) दी गई है। इसके लिए संस्थान को 1करोड़ 66 लाख का फंड वस्त्र मंत्रालय की ओर से उपलब्ध कराया गया है। 

सरकार की सोच है कि स्थानीय स्तर पर टैक्सटाइल इंडस्ट्री को बढ़ावा दिया जाये। इसी कारण एनआइटी जमशेदपुर को यह जिम्मेदारी दी गई है।

सरायकेला :36वां अंडर 9 बालक बालिका राष्ट्रीय चेस चैंपियनशिप का आयोजन 2 नवम्बर से।

सरायकेला :36वां अंडर 9 बालक बालिका राष्ट्रीय चेस चैंपियनशिप 2 से 8 नवंबर तक सरायकेला के वेव इंटरनेशनल होटल में आयोजित होगा। इसकी जानकारी जिला शतरंज संघ के पदाधिकारियों ने प्रेसवार्ता कर दी और पोस्टर भी लांच किया। 

प्रेसवार्ता में जिला शतरंज संघ के अध्यक्ष मनोज कुमार, सचिव अजय कुमार, संरक्षक शंभूनाथ सिंह, नंद कुमार सिंह और जियाडा के क्षेत्रीय निदेशक प्रेमरंजन शामिल थे। संघ के अध्यक्ष ने बताया कि प्रतियोगिता में कुल 11 चक्र का खेल स्विस पद्धति से खेला जाएगा। 

बालक बालिका वर्ग के विजेता को 50- 50 हजार रुपये, उप विजेता को 36-36 हजार रुपए और तीसरे स्थान के खिलाड़ियों को 30-30 हजार रुपए पुरस्कार दिया जाएगा। 11 से 20वें स्थान पानेवाले खिलाड़ियों को 4-4 हजार रुपए पुरस्कार मिलेगा।

खाद्य सुरक्षा पदाधिकारी सुश्री आदिती सिंह द्वारा सरायकेला बाजार स्थित विभिन्न दुकानों, में की गयी छापामारी

सरायकेला:अपर मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी के निदेशानुसार त्योहारों में खाने में मिलावट को रोकने के लिए आज खाद्य सुरक्षा पदाधिकारी सुश्री आदिती सिंह के द्वारा सरायकेला बाजार स्थित विभिन्न दुकानों, कैंटीन, रेस्तरां, मिठाई प्रतिष्ठानों पर छापामारी अभियान चलाया गया.

दुकानों का निरीक्षण किया गया. निरीक्षण के दौरान दुकानों का फ़ूड लाइसेंस चेक किया गया. सिद्धेश् स्वीट एवं सुभाष स्वीट एंड स्नैक्स से लीगल नमूना ज़ब्त किया गया .

सभी होटेलों और मिठाई दुकानों से अपील है कि खाद्य पदार्थों में कामधेनु रंग (गाय छाप) का प्रयोग नहीं करेंगे।. यह रंग कपड़ा रंगने में प्रयोग किया जाता है जिसे मिठाई को आकर्षित बनाने के लिए मिलावट किया जाता है जो स्वास्थ्य के लिए बेहद हानिकारक है. ऐसे रंग के मिलने पर खाद्य कारोबारी पर सख्त कार्रवाई की जाएगी. 

सभी मिठाई दुकानदारो को सूचित किया जाता है कि अपने-अपने डिस्प्ले ट्रे मे बेस्ट बिफोर/ अंतिम उपयोग की तिथी अंकित करके ही मिठाई की बिक्री करें. जाँच के क्रम में मिठाई के डिस्प्ले ट्रे में अंतिम उपयोग की तिथी अंकित नहीं रहने पर खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम 2006 के तहत विधि सम्मत कार्रवाई की जाएगी.

सरायकेला :14 वर्षीय छात्रा की सड़क दुर्घटना में हुई मौत, ग्रामीणों का फूटा गुस्सा, कांड्रा थाना आकर किया घेराव।


सरायकेला : कांड्रा थाना क्षेत्र अंतर्गत कांड्रा बाजार में 14 वर्षीय स्कूली छात्रा की सड़क दुर्घटना में हुई मौत को लेकर गिद्दीबेड़ा वासियों का आक्रोश फूट पड़ा और सैकड़ों की संख्या में महिलाएं पारंपरिक हरवे- हथियार के साथ कांड्रा थाने के समक्ष जोरदार प्रदर्शन किया।

बता दें कि सोमवार को गिद्दीबेड़ा की 14 वर्षीय छात्रा की सड़क दुर्घटना में मौत हो गयी थी। इसी को लेकर ग्रामीणों में आक्रोश व्याप्त है। मुआवजा की मांग को लेकर सैकड़ो की संख्या में आए महिला पुरुष ग्रामीणों ने कांड्रा थाना में आकर धरना प्रदर्शन किया।ग्रामीणों ने बताया कि आए दिन बड़ी-बड़ी कंपनियों के वाहनों के आवागमन से कांड्रा थाना क्षेत्र में सड़क दुर्घटनाएं हो रहे हैं जिसपर पुलिस-प्रशासन मौन हैं। स्थानीय लोगों के पास चलने के लिए सड़क तक नहीं है।

 वहीं मुआवजा को लेकर कांड्रा थाना में गम्हरिया अंचलाधिकारी की अध्यक्षता में जनप्रतिनिधि, ग्रामीणों और पुलिस अधिकारी के साथ वार्ता आयोजित हुई। जहां पदाधिकारी ने 45 हजार रुपए परिवार को दिया वहीं अंचलाधिकारी ने प्रधानमंत्री आवास, वत्सल योजना एवं सरकारी योजना के तहत मिलने वाले सभी लाभ जल्द से जल्द दिलाने की बात कही।

सरायकेला : सप्ताहिक जनता मिलन में जिले के विभिन्न क्षेत्र से पहुंचे दर्जनों लोग, समस्याओं का नियमानुसार समाधान का मिला आश्वासन


सरायकेला-खरसावां :समाहरणालय में आयोजित सप्ताहिक जनता मिलन कार्यक्रम में व्यक्तिगत एवं समाजिक समस्याओं के निराकरण हेतू जिले के विभिन्न क्षेत्र से दर्जनों लोग पहुँचे, जनता मिलन में आए लोगो से उपायुक्त श्री रवि शंकर शुक्ला नें क्रमवार मिलकर उनकी समस्याओं को सुना तथा समस्याओं के निराकरण को लेकर सम्बन्धित पदाधिकारियों को आवेदन हस्तांतरित करते हुए नियमानुसार आवश्यक कार्यवाही सुनिश्चित करने के निदेश दिए। 

इस दौरान जन कल्याणकारी योजनाओं से सम्बन्धित प्राप्त आवेदन का ऑन-द -स्पॉट निष्पदान किया गया। जनता मिलन कार्यक्रम के दौरान उपायुक्त नें दूरभाष के माध्यम से पदाधिकारियों से वार्ता करते हुए कहा कि क्षेत्रीय समस्याओं का निराकरण अपने स्तर से सुनिश्चित करे ताकि लोगो को विभिन्न कार्यालयों का चक्कऱ ना लगाना पड़े। उपायुक्त नें कहा विभिन्न माध्यम से प्राप्त शिकायतों पर जाँचोपरान्त आवश्यक कार्यवाही सुनिश्चित कर जिला मुख्यालय एवं लाभुक को सूचना दे।

आज जनता मिलन कार्यकर्म में मुख्य रूप से भूमि संबंधित मामले, राशन कार्ड, समाज कल्याण विभाग, चांडिल बाईपास सड़क की मरम्मती तथा चांडिल बजार में दुर्गा पूजा के दौरान बड़े वाहनों के लिए वैकल्पिक रस्ता की व्यवस्था करने , गाँव नुवागांव में राशन वितरण में अनियमितता बरतने समेत अन्य मामले से सम्बन्धित आवेदन प्राप्त हुए।

जिला प्रशासन डाल डाल पर तो दारू माफिया पात पात पर ,एक तरफ भाटी तोड़ा जाता दूसरी ओर पूर्ण संचालन करते देखा गया।


सरायकेला : जिला के चांडिल थाना क्षेत्र अंतर्गत दलमा वाइल्ड लाइफ सेंचुरी की तराई बसे बहुल आदिवासी गांव काठाजोड़ में जहां दलमा सेंचुरी की झरना के आसपास चल रहा था।अवैध देशी महुआ दारू भाटी की चुलाईं करने वाले संचालक मौका मिलते ही भाग निकले ,मादक पदार्थ के साथ भाटी को तोड़ा गया।

सरायकेला जिला पुलिस अधीक्षक महोदय ड्रा० विमल कुमार के निर्देश पर नशा मुक्त अभियान के तहत चांडिल थाना पुलिस वल द्वारा छापामारी 15 अक्टूबर से लगातर देशी शराब भाटी को तोड़ रहे हैं।

कल शाम को छापामारी करने के दौरान चिलगू चाकुलिया के निवासी माताल मुर्मू के देशी शराब भाटी को तोड़ा गया । मौका मिलते ही संचालक भाग निकले , माताल मुर्मू के विरोध चांडिल थाना में शराब चुलाई करने के आरोप में उस पर मामला दर्ज किया गया । किसी का गिरिफ्तारी अब तक नही हुई।

दलमा सेंचुरी के हाथी की झुंड शराब बनाने मादक सामग्री को खाने के बाद मस्त हो जाते हे ओर गांव में घुसकर उत्पात मचाते हे। कभी कभी घर में रखे अनाज को अपना निवाला बनाते हे,साथ ही घर को क्षत्रि पूर्ति करते हे। मनुष्य को देखते ही हाथी की झुंड आक्रोषित हो जाते हैं।

अवैध देशी शराब की चुलाई बड़े पैमाने से सेंचुरी क्षेत्र में धड़ले से चल रहा हे। एक तरफ जिला पुलिस का नशा मुक्त अभियान चला रहे दूसरी ओर पूर्णरूप से भाटी माफिया द्वारा संचालक करते देखा गया।

पुलिस डाल डाल पर ,तो शराब माफिया पात पात पर कहावत में बने रहे। शराब की चुलाई ओर बिक्री बड़े मात्रा से खपत होता है। जिसे दलमा वाइल्ड लाइफ सेंचुरी खतरे में देशी भाटी में प्रतिदिन सेकडो सेंचुरी का पेड़ कटाई और जलाई में खप्त होता है।

जंगल की कटाई से जंगली जीवजंतु को पौष्टिक भोजन प्राप्त मात्रा में नही मिलता साथ ही रहने के लिए आशियाना खतरे में जिसे देखते हुए वन एवं पर्यावरण विभाग को ठोस कदम उठाने की जरूरत हे,तभी चलकर जंगल और मनुष्य जीवित रहेगा ।

सरायकेला:केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा की अध्यक्षता में शुरू हुई दिशा की बैठक


चाईबासा: - कोल्हान के चाईबासा समाहरणालय में केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा की अध्यक्षता में शुरू हुई दिशा की बैठक। 

राज्य की महिला एवं बाल विकास मंत्री जोबा मांझी, सांसद गीता कोड़ा, चाईबासा विधायक दीपक बिरुआ, जगन्नाथपुर विधायक सोनाराम सिंकु, खरसंवा विधायक दशरथ गागराई भी हुए बैठक में शामिल।

अभिशाप बना झारखंड में डायन कुप्रथा, पद्मश्री छुटनी महतो के गृह जिले में डायन के नाम पर भाई ने ली भाई की जान


आखिर कब थमेगा 21 वीं सदी के झारखंड में डायन के नाम पर हिंसा !

सरायकेला :- कोल्हान में 21वीं सदी के झारखंड में आज भी डायन कुप्रथा का बोलबाला है। जिस छुटनी महतो को डायन कुप्रथा से लड़ने के लिए पद्मश्री सम्मान से नवाजा गया, उसी छुटनी महतो के गृह जिला सरायकेला में बीती रात डायन के संदेह में एक भाई ने भाई की जान ले ली। जो कहीं न कहीं शासन- प्रशासन पर कई सवाल खड़े कर रहे हैं। 

डायन कुप्रथा के उन्मूलन को लेकर चलाए जा रहे अभियान पर भी सवाल उठ रहे हैं। सवाल तब और गहरा जाता है जब छुटनी जैसी ब्रांड एंबेसडर के रहते उसी के जिले में डायन के नाम पर हत्या हो। 

मामला सरायकेला थाना क्षेत्र के हड़ुआ गांव की है। जहां एक भाई ने लकड़ी के कुन्दे से अपने बड़े भाई की हत्या कर डाली। हालांकि हत्यारे भाई ने पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण कर दिया है। 

मृतक की पहचान 70 वर्षीय साधु पूर्ति के रूप में हुई है। हत्यारे भाई का नाम विशु पूर्ति उर्फ पहलवान बताया जा रहा है। मृतक की बेटी के अनुसार उसका चाचा उसकी मां को डायन कहता था। इसको लेकर कई बार घर में विवाद हो चुका था। 

बीती रात भी उसके चाचा उसकी मां को डायन बताकर मारने आया था। बीच बचाव करने गए उसके पिता के सर पर लकड़ी के कुन्दे से हमला कर दिया जिसमे वे बुरी तरह से घायल हो गए और मौके पर ही दम तोड़ दिया।

इधर गांव के मुखिया ने बताया कि दोनों भाइयों के बीच संपत्ति विवाद थी। मगर जब यहां पहुंचा तो मामला डायन प्रताड़ना का निकला। इधर घटना के बाद गांव में सनसनी फैल गई है। 

सूचना मिलते ही थाना प्रभारी अर्जुन उरांव दल बल के साथ हड़ुआ गांव पहुंचे और मृतक के शव को अपने कब्जे में लेकर आगे की कार्रवाई में जुट गए हैं। 

आपको बता दें कि डायन कुप्रथा के उन्मूलन और डायनों के नाम पर प्रताड़ित महिलाओं के हितों की रक्षा करने को लेकर साल 2021 का पद्मश्री सम्मान सरायकेला के छुटनी महतो को मिला था। अपने आप में यह गौरव की बात है। हैरानी तब होती है जब छुटनी महतो के जिले से डायन प्रताड़ना और हत्या जैसे मामले सामने आते हैं। इतना ही नहीं स्थानीय पुलिस- प्रशासन भी ऐसे मामलों में संवेदनशीलता नहीं दिखाती है और पीड़ित के शिकायतों पर गंभीरता नहीं दिखाती है। 

पद्मश्री छुटनी महतो लगातार जागरूकता कार्यक्रमों में हिस्सा लेती है। मगर प्रशासन उन्हें तरजीह नहीं देती यदा- कदा ही किसी कार्यक्रमों में उन्हें बुलावा भेजकर खानापूर्ति कर लेती है।

सरायकेला : दलमा वाइल्ड लाइफ सेंचुरी के तराई में बसा कोंकादासा गांव जहां आज भी लोग है बुनियादी सुविधाओं से वंचित

यहां की है परम्परा,लोग अपनी पालतू भैंसों को छोड़ देते हैं दिवाली के बाद जंगलो में,फिर फरवरी में लाते हैं वापस


रिपोर्ट:-विजय कुमार(सराईकेला)

सरायकेला : दलमा वाइल्ड लाइफ सेंचुरी के बिहोड़ों में बसे आदिवास बहुल गांव कोंकादासा जहा 30 परिवार बास करते आ रहे हैं।

ईन लोगो का जीवन ईश्वर और दलमा जंगल पर निर्भर करता है। कभी समय पर बारिश होने पर खेती होता है । नही तो जंगल की सूखे लकड़ी और पत्ता दातुन कंदमूल इकट्ठा करके बोड़ाम मार्केट पर ले जाकर बेच कर जीवन का गुजर -बसर करते है।

कोल्हान के पूर्वी सिंहभूम बोड़ाम थाना क्षेत्र के बोटा पंचायत के जमशेदपुर गज परियोजना के कोकादासा के ग्रामीण सुनील सिंह सरदार ने बताया कि यह गांव आदिवासी बहुल गांव है।देश के आजादी के बाद से लेकर आज तक झारखंड राज्य अलग हुए लेकिन अबतक विकास नहीं हुआ। न कोई सरकारी योजना यहां पहुंचा है जिससे गांव का विकास हो ।

 ग्रामीणों आपने भैंसा काड़ा को सेंचुरी जंगल में छोड़ देता है। जो भैंसा को हरी घास खाने को मिल जाता है।

ग्रामीणों का मानना है कि खेती बाड़ी के दौरान भैंसा को फरबरी माह में जंगल से गांव लाते हैं और खेती बाड़ी के बाद दीपावली और बंदना पर्व को भैसा बैल खुटान के बाद पूर्ण जंगल में छोड़ देते हैं।

 भैसा का झुंड जंगल में बिछड़ न जाए और खोजने में आसान हो जिसे भैसा के गले में लकड़ी का बना घंटा लगाकर रखते हैं, जिसे घंटा का आवाज में खोजने में आसान होता है।यह भैंसा का झुंड सेंचुरी के बड़का बाध,छोटका बाध ,निचला बाध आदि जगह घुम् - घूम कर विचरण करते हैं। 

झुंड में भैसा का।छोटे बच्चे भी रहते हैं, भैसा मालिक द्वारा दो माह के अंदर एक आध बार जरूर भैसा झुंड को देखने जंगल में पहुंचते हैं। 

लोगो का मानना है कि दलमा बूढ़ा बाबा , दलमा पाट में बर्ष में एक बार पूजा अर्चना करने पहुंचे हैं।जो उनका पालतू जानवर को जंगली जानवर से सुरक्षित रखते हैं।

सुनील सिंह सरदार (ग्रामीण

कोंकादासा) का कहते हैं कि जंगल के ऊपरी क्षेत्र होने के कारण पानी की किल्लत होता है।लोग झरने की पानी पीते हैं ।जिसे कई प्रकार का रोगों से निजात मिलती है , सरकार द्वारा इस क्षेत्र को पर्यटक के लिए र

रिसोर्ट गेस्ट हाउस खोले ओर पर्यटकों बढ़ावा दे जिसे हम लोगो को पानी ,बिजली सड़क ,स्वास्थ्य की सुविधा होगा और हम लोगो को स्वरोजगार प्राप्त होगा।

एक दशक पूर्व यह घोर नक्सल प्रभावित क्षेत्र था जिसके कारण अबतक कोई विकास नही हुआ है। चुनाव के समय नेता मंत्री पहुंचते है और बड़े बड़े वादे करके  चले जाते हैं। इस क्षेत्र में एक मात्र स्कूल है ।उसके बाद उच्च शिक्षा के 30 किलोमीटर जंगल के बीहड़ों में पैदल चलकर बोटा पंचायत जाना पड़ता है।

 

सड़क में बिजली स्वास्थ्य केंद्र नही होने के कारण लोगो को जीना यहां मुश्किल है । डर की साए में है ग्रामीण इस जंगल में वास करते हैं ।यहां रॉयल बंगाल टाईगर,चिता,भालू और हाथी की डर लगा रहता है। कई बार जंगली जानवर द्वारा पालतू जानवर को खा जाते हैं। वन एवं पर्यावरण विभाग द्वारा हमारे गांव में कोई विकास नहीं किया । अब नक्सल से कोई डर नही पर्यटक इस क्षेत्र में आए और इन हसीन वादियों का मनोरंजन ले जंगल से हराभरा और झरनों की कलकलाहट की आवाज के साथ पंछी की आवाज सुनने को यहां मिलता है।

कदमा थाना क्षेत्र में हिंसा के बाद 10 अप्रैल को जेल गए भाजपा नेता अभय सिंह आज निकले जेल से

जमशेदपुर के कदमा थाना क्षेत्र में हिंसा के बाद 10 अप्रैल को जेल गए भाजपा नेता अभय सिंह आखिरकर सोमवार को जेल से जमानत पर बाहर आ गए. जेल के बाहर उसका स्वागत कई भाजपा नेताओं और समर्थकों ने किया.

मौके पर ढोल-नगाड़ों की गूंज के साथ जश्न मनाया गया. जमानत पर बाहर आने के बाद समर्थकों में खुशी की लहर है. सोमवार को सुबह से ही जेल के बाहर समर्थन जुड़ने लगे थे. समर्थकों की भीड़ से करनडीह तक सड़क जाम हो गया था. हालांकि शाम 6 बजे कागजी प्रक्रिया पूरी करने के बाद वह बाहर आए. अभय सिंह पर कदमा में हिंसा भड़काने, जुगसलाई में हुआ पथराव समेत रंगदारी मांगने का मामला दर्ज किया गया था.

 जेल से बाहर आने के बाद भाजपा नेता अभय सिंह ने कहा कि झारखंड सरकार हिंदू विरोधी सरकार है. इनकी उदंडता के कारण ही निर्दोष लोगों को जेल भेजा गया. उन्होंने कहा कि वे कट सकते है, मर सकते है पर झुक नहीं सकते. उन्होंने कहा कि जमशेदपुर के इतिहास में हिंदुत्व के लिए सबसे बड़ा घिनौना काम किया गया है.

 घटना के बाद से आज तक जिला प्रसासन पता नहीं लगा पाई की कदमा में किसने हाईमास्क लाइट पर मांस का टुकड़ा बांधा था. झारखंड सरकार और मंत्री के इशारे पर इस तरह का घिनौना काम किया गया है.