ग्रामीण परिवेश को जीवित रखने का काम कर रहे है चांडिल के कलाकार सौरभ
सरायकेला : चांडिल प्रखंड के एक छोटे से गांव चैनपुर के रहने वाले युवा कलाकार सौरभ प्रामाणिक ग्रामीण परिवेश को जीवित रखने का काम कर रहे है। ग्रामीण परिवेश के कई बुजुर्ग आदमी और अलग अलग ग्रामीण स्थान जाकर लाइव पेंटिंग जलरंग के माध्यम से हुवाहु उकेरते है जिसे देखकर लोग काफी सराहना के साथ आशीर्वाद देते है।
कलाकार सौरभ प्रामाणिक बताते है की हमारी जड़ें गाँवों से ही शुरू होती इसे हमे जीवित रखना चाहिए।कलाकार सौरभ अपनी कल्पना के साथ समाज की समस्या को भी समय-समय पर उजागर करते रहते है। कलाकार सौरभ प्रामाणिक जमशेदपुर में स्थित टैगोर स्कूल ऑफ आर्ट्स में फाइन आर्ट्स में 6 साल का डिप्लोमा कर चुके है और अभी फिलहाल आदित्यपुर में स्थित श्रीनाथ विश्वविद्यालय में बैचलर ऑफ फाइन आर्ट्स की पढ़ाई कर रहे है।
इन्होंने अबतक कई चित्र बनवाए है जिसमें समाज में हो रही परेशानी, ज्वलंत मुद्दों से लेकर कई ग्रामीण पर्व जैसे - करम परब, सोहराई, जितवा पर्व और टुसू आदि जैसे पर्वों को अपने कला के माध्यम से उकेरने का प्रयास किया है।
Aug 28 2023, 20:14