*साइबर अपराधियों की कमर तोड़ने के लिए हर जिले में खोला जाए साइबर थाना: सीएम योगी*

लखनऊ । साइबर अपराध दिनों दिन बढ़ता जा रहा है। जिसे देखते हुए इसको लेकर योगी सरकार गंभीर हो चली है।साइबर अपराधियों की कमर तोड़ने के लिए योगी सरकार ने यूपी पुलिस को हर स्तर पर साधन-संपन्न करने का निर्णय लिया है।

 शनिवार को प्रदेश में साइबर सुरक्षा प्रबंधों की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि वर्तमान में परिक्षेत्रीय स्तर पर संचालित साइबर क्राइम पुलिस थानों को अब सभी 75 जिलों तक विस्तार दिया जाए और वर्तमान में जिला स्तर पर संचालित साइबर सेल को आगे बढ़ाते हुए हर एक थाने में साइबर सेल गठित किया जाए।

 मुख्यमंत्री के इस निर्देश के बाद आगामी दो माह के भीतर प्रदेश में 57 नए साइबर क्राइम थानों की स्थापना होगी, जबकि हर थाने में साइबर हेल्प डेस्क के अलावा अब साइबर सेल भी क्रियाशील होगा। सभी साइबर पुलिस क्राइम थाने स्थानीय पुलिस लाइन में स्थापित किए जाएंगे।  

समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री ने कहा कि हाल के समय में तकनीक के दुरुपयोग से अपराध की प्रकृति भी बदली है। आज कस्टमर केयर फ्रॉड, पेंशन फ्रॉड, बिजली बिल फ्रॉड, वर्क फ्रॉम होम फ्रॉड, सेक्स्टॉर्सन फ्रॉड, लोन एप फ्रॉड, पार्सल फ्रॉड, फ्रेंचाइजी फ्रॉड, फेक बेटिंग एप, क्रिप्टो इन्वेस्टमेंट फ्रॉड, पॉन्जी स्कीम फ्रॉड के मामले देखने को मिल रहे हैं। आम आदमी इसका सीधा शिकार हो रहा है। इससे बचाव के लिए हमें हर स्तर पर सतर्कता बरतनी होगी। 

मुख्यमंत्री ने कहा कि साइबर अपराधों से बचाव के लिए जागरूकता सबसे अहम माध्यम है। हमें स्कूली पाठ्यक्रमों में इसे शामिल करना चाहिए। इसके अलावा, बीएसए/डीआईओएस को मास्टर ट्रेनर के रूप में प्रशिक्षित करते हुए चरणबद्ध रूप से प्रधानाचार्यों व शिक्षकों और फिर विद्यार्थियों व उनके अभिभावकों को जागरूक किया जाए। मुख्यमंत्री ने जागरूकता सामग्री तत्काल तैयार कर इसे क्रियान्वित करने के निर्देश दिए।

 वहीं, साइबर अपराधों के अन्वेषण व विवेचना के लिये पुलिस बल के विधिवत प्रशिक्षण की आवश्यकता बताते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि हर जिले से पांच पुलिस अधिकारियों को राज्य स्तर पर प्रशिक्षित किया जाए। प्रशिक्षित पुलिस अधिकारियों द्वारा अपने जिले के प्रत्येक थाने से 05 निरीक्षक व उपनिरीक्षक को साइट्रेन पोर्टल पर उपलब्ध कोर्स के संबंध में प्रशिक्षण दिया जाए।

*मदुरै ट्रेन हादसा: ट्रेन में सीतापुर जिले के दस लोग थे सवार, दो की मौत की पुष्टि पर परिवार में मचा कोहराम*

लखनऊ । तमिलनाडु के मदुरै रेलवे स्टेशन के पास जिस रेल कोच में आग लगने की घटना हुई उसमें सीतापुर के 10 लोग मौजूद थे। इन सभी की बुकिंग विजय लक्ष्मी नगर स्थित भसीन टूर एंड ट्रैवेल्स से की गई थी। 17 अगस्त से लेकर 30 अगस्त तक यह यात्रा प्रस्तावित थी। हादसे में जिले के शत्रु दमन सिंह (65) की मौत की सूचना मिली है।

जिले की आदर्श नगर निवासी मिथिलेश (50) भी इसी ट्रेन में थीं। उनकी भी मौत की पुष्टि हो गई है। उन्हें आज रामेश्वरम के दर्शन करने थे लेकिन इस हादसे की खबर आई। हादसे की खबर मिलते ही उनके घर में कोहराम मच गया। उनके दामाद ने बताया कि शनिवार को ट्रेन रामेश्वरम पहुंचती। उनकी सास रामेश्वरम दर्शन के लिए काफी उत्साहित थी लेकिन हमें हादसे में उनके गंभीर रूप से घायल होने की बात पता चल रही है।

हम लोग लगातार कंट्रोल रूम से संपर्क में हैं। हालांकि, उनकी मौत की जानकारी परिजनों को दे दी गई है। हादसे में मिथिलेश के पति शिव प्रताप घायल हैं। इसी तरह शत्रुदमन की पत्नी भी घायल हैं। दोनों का इलाज चल रहा है। जिले की नीरज मिश्रा व उनकी पत्नी सरोजनी गंभीर रूप से घायल हैं। शिवप्रताप की साली सुशीला सिंह भी गंभीर घायल हैं। ट्रेन में शत्रुदमन सिंह ,सुशीला सिंह, शिव प्रताप सिंह ,मिथिलेश सिंह ,अशोक प्रजापति ,अलका प्रजापति ,नीरज मिश्रा , सरोजनी मिश्रा मौजूद थी।

जानकारी के मुताबिक लखनऊ से रामेश्वरम जा रही इस ट्रेन के प्राइवेट पार्टी कोच में आग लगी थी। मदुरै रेलवे स्टेशन के पास खड़ी ट्रेन के डिब्बे में आग लग गई। इस आग में झुलसकर 10 लोगों की मौत हो गई है। इसके साथ ही इस हादसे में 20 से ज्यादा लोग घायल हुए हैं। आग टूरिस्ट कोच में लगी थी। अधिकारियों के मुताबिक, आग लगने की घटना की सूचना सुबह करीब 5.15 बजे मिली जब ट्रेन मदुरै यार्ड जंक्शन पर रुकी हुई थी। इस मामले में मुख्यमंत्री ने रेल मंत्री से वार्ता की है।

दिव्यांग छात्र के नाम पर 200 करोड़ के छात्रवृत्ति घोटाले का खुलासा,

प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पैरा क्रिकेटर विक्रम नाग को इस मामले में किया गिरफ्तार_

लखनऊ : यूपी में हुए 200 करोड़ के छात्रवृत्ति घोटाले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने इंटरनेशनल पैरा क्रिकेटर विक्रम नाग को गिरफ्तार किया है. एजेंसी ने आरोपी को लखनऊ स्थित विशेष कोर्ट में पेश किया. ईडी की अपील पर कोर्ट ने विक्रम को पुलिस रिमांड में भेजा है.

 ईडी की जांच में विक्रम का कनेक्शन हाइजिया समूह के संचालकों से सामने आया है. लखीमपुर के रहने वाले विक्रम नाग को वर्ष 2020 में यूपी महोत्वस का यूथ आइकन बनाया गया था. 

यूपी दिव्यांग क्रिकेट टीम के कप्तान रह चुके विक्रम नाग ने कई अंतराष्ट्रीय मैच खेले हैं.

एजेंसी के सूत्रों के मुताबिक छात्रवृत्ति घोटाले की जांच के दौरान सामने आया है कि विक्रम नाग हाइजिया ग्रुप के संचालकों के लिए एजेंट की तरह काम कर रहा था. 

विक्रम ने फर्जीवाड़ा कर छात्रवृत्ति गबन करने के लिए हाइजिया ग्रुप के संचालकों को दिव्यांगों के सार्टिफिकेट व अन्य दस्तावेज उपलब्ध कराए थे. जिसे लेकर अब उससे कई बिंदुओं पर विस्तार से पूछताछ की जाएगी. ईडी ने इस घोटाले में आरोपी हाइजिया ग्रुप के संचालक इजहार हुसैन जाफरी उर्फ हनी जाफरी, अली अब्बास जाफरी के अलावा हाइजिया के कर्मचारी रवि प्रकाश गुप्ता को गिरफ्तार किया था. वहीं लखनऊ पुलिस की एसआईटी ने भी बीते दिनों इस घोटाले में शामिल सीतापुर के दो कॉलेज संचालक समेत पांच लोगों को गिरफ्तार किया था.

इन पर दर्ज हुई थी FIR 

हजरतगंज कोतवाली में एसएस इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट मामपुर के चेयरमैन प्रवीण चौहान, एजुकेशन सोसाइटी एंड हाइजिया के वाइस प्रेसीडेंट इजहार हुसैन जाफरी, इसी ग्रुप में अली अब्बास जाफरी, सईद इशरत हुसैन जाफरी, हाइजिया कॉलेज ऑफ फार्मेसी के रवि प्रकाश गुप्ता व ग्रुप से जुड़े अन्य अधिकारी-कर्मचारी, लखनऊ इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट एंड एजुकेशन के संचालक, डॉ. ओमप्रकाश ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूशन फर्रुखाबाद के चेयरमैन गुप्ता, डॉ. भीमराव अंबेडकर फाउंडेशन एंड जीविका कॉलेज ऑफ फार्मेसी हरदोई के सेक्रेटरी रामगोपाल, आरपीपी इंटर कॉलेज हरदोई के प्रबंधक पूनम वर्मा, ज्ञानवती इंटर कॉलेज हरदोई विवेक कुमार पटेल, उच्चतर माध्यमिक विद्यालय गौसगंज कछौना हरदोई के विवेक कुमार जगदीश प्रसाद वर्मा, फिनो पेमेंट बैंक के एरिया मैनेजर सचिन दुबे, एजेंट मो. साहिल अजीज, अमित कुमार मौर्य, तनवीर अहमद और जितेंद्र सिंह के खिलाफ एफआईआर दर्ज हुई थी.

*मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मदुरै ट्रेन हादसे पर जताया गहरा दुख,समुचित इलाज के दिये निर्देश*

लखनऊ । मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मदुरै ट्रेन हादसे पर गहरा दुख व्यक्त किया है। उन्होंने मृतकों के परिजनों के प्रति संवेदना की व्यक्त की है।मुख्यमंत्री योगी ने यूपी के घायलों के समुचित इलाज के निर्देश दिए हैं। सीएम के निर्देश पर प्रमुख सचिव गृह ने कमान संभाल ली है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रेलमंत्री से फोन पर बात की है।

मुख्यमंत्री योगी ने स्थानीय अधिकारियों एवं रेलवे के अधिकारियों के साथ समन्वय कर यूपी के लोगों के समुचित इलाज की व्यवस्था करने के निर्देश दिए हैं और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की है। यूपी सरकार की तरफ से मृतकों के परिजनों को दो लाख रुपये की अनुग्रह राशि दिए जाने की घोषणा की है। दुर्घटना को लेकर यूपी सरकार ने टोल फ्री नंबर 1070 जारी कर दिया है।

कंट्रोल रूम राहत हेल्प लाइन नम्बर (उत्तर प्रदेश)

- 1070 (टोल फ्री)

- 9454441081

- 9454441075

*डिलीवरी ब्वॉय-गर्ल व किरायेदारों का सत्यापन अनिवार्य, पुलिस आयुक्त लखनऊ ने जारी किया आदेश, चरित्र का सत्यापन न कराने पर होगी कार्रवाई*

लखनऊ । पुलिस आयुक्त के निर्देश पर संयुक्त पुलिस आयुक्त कानून एवं व्यवस्था द्वारा जनपद में धारा 144 के अंतर्गत आदेश जारी करते हुए वितरण कर्मचारी (डिलीवरी ब्वॉय व गर्ल) एवं किरायेदारों के पुलिस सत्यापन को अनिवार्य कर दिया गया है जिसके अन्तर्गत निजी कम्पनियों सेवा प्रदाताओं तथा मकान मालिकों द्वारा वितरण कर्मचारी किरायेदारों का चरित्र सत्यापन कराया जाना आवश्यक होगा। इस संबंध में धारा 144 के तहत शुक्रवार को आदेश पारित कर दिया गया है। यह सब राजधानी के अंदर अपराध की घटनाओं पर अंकुशल लगाने के लिए ऐसा किया जा रहा है।

पुलिस आयुक्त ने धारा 144 के तहत जारी किया आदेश

संयुक्त पुलिस आयुक्त, कानून एवं व्यवस्था उपेन्द्र कुमार अग्रवाल ने बताया कि सभी सेवा प्रदाता जो वितरण कर्मचारी रखते हैं उनका पुलिस सत्यापन अनिवार्य रूप से नियुक्ति करने के पूर्व अवश्य करायेंगे जैसे-जोमैटो, स्विग्गी व अन्य आॅनलाइन कम्पनी जिनके द्वारा घरों पर भोजन दवा व अन्य वस्तुओं की डिलीवरी दी जाती है। सेवा प्रदाता की जिम्मेदारी होगी की इन कर्मचारियों का चरित्र सत्यापन कराये ।वितरण कर्मचारी के चरित्र सत्यापन की जिम्मेदारी उनके नियोक्ता की होगी जिनके द्वारा उन्हें वेतन भुगतान अथवा संविदा पर रखा गया है और संविदा के अनुरूप भुगतान किया जाता है एवं बदले में सेवा ली जाती है। कोई भी मकान मालिक जिसका मकान लखनऊ कमिश्नरेट में स्थित है, वो बिना किरायेदार का सत्यापन कराये, किराये पर मकान नहीं देगा।

सत्यापन कराने के लिए पुलिस विभाग ने दो माह तक का दिया समय

निदेर्शों का उल्लंघन करने पर यदि किरायेदार वितरण कर्मचारी द्वारा कोई अपराध कारित किया जाता है या कोई गम्भीर घटना कारित कर दी जाती है और किरायेदार वितरण कर्मचारी का नाम पता तस्दीक न होने के कारण उसका पता नहीं चल पाता है तो मकान मालिक सेवा प्रदाता के विरुद्ध भी विधिपूर्ण कार्यवाही की जा सकेगी। पुलिस सत्यापन के लिये सम्बन्धित फॉर्म आॅनलाइन यूपीकाप एप एवं यूपी पुलिस की वेबसाइट पर कर्मचारी व किरायेदार श्रेणी में उपलब्ध है। समस्त विवरण के साथ आॅनलाइन फॉर्म भरकर जमा करना पूर्ण अनुपालन माना जायेगा।

असुविधा होने पर पुलिस विभाग ने जारी किया मोबाइल नंबर

सम्बन्धित थाने द्वारा कोई अन्य विवरण मांगा जाता है तो उसको समय से उपलब्ध कराया जाये। यह आदेश 25 अगस्त से 25अक्टूबर 2023 तक, दो माह के लिये प्रभावशाली होगा और पूर्व से निवासित किरायेदारों और नियुक्त वितरण कर्मचारी (ब्वॉय गर्ल) का सत्यापन इन दो माह में अवश्य करा लिया जाये। 25 अक्टूबर के पश्चात जो नये प्रकरण सामने आयेंगे उनका सत्यापन नियुक्ति व आवासित होने के पूर्व करवाना अनिवार्य होगा।

घर बैठे पुलिस की साइड पर सत्यापन के लिए भर सकते है फार्म

इस आदेश का प्रचार लखनऊ नगर के सभी पुलिस उप आयुक्त, अपर पुलिस उप आयुक्तों व सहायक पुलिस आयुक्तों के न्यायालयों के नोटिस बोर्ड, लखनऊ नगर क्षेत्र के सभी थानों के नोटिस बोर्ड पर चस्पा करके. स्थानीय समाचार पत्रों में प्रकाशित कराकर एवं पुलिस कन्ट्रोल रूम की गाड़ियों द्वारा स्पीकर से प्रचार कराकर किया जायेगा। आॅनलाइन आवेदन करने में होने वाली समस्याओं के निस्तारण के लिए प्रभारी सीसीटीएनएस के नम्बर 9454405232 पर सम्पर्क किया जाएगा। उन्होंने बताया कि यह आदेश न मानने वाले के खिलाफ धारा 188 के तहत कार्रवाई की जाएगी।

*राजधानी लखनऊ में सात और नो पार्किंग जोन घोषित, अब यहां गाड़ी खड़ी करने अथवा सवारी बैठाने पर भरना पड़ेगा जुर्माना*

लखनऊ । राजधानी के अंदर नो पार्किंग जोन की संख्या अब बढ़ती जा रही है। अभी तक 11 नो पार्किंग जोन घोषित किये गये थे लेकिन राजधानी वासियों की लगातार मांग पर सात और पार्किंग जोन लखनऊ पुलिस द्वारा घोषित कर दिया गया है। अब इन घोषित पार्किंग जोन में पहले एक सप्ताह तक जागरूकता अभियान चलाया जाएगा। इसके बाद भी नो पार्किंग जोन पर वाहन खड़ी करने व सवारी भरने पर कार्रवाई की जाएगी।

संयुक्त पुलिस आयुक्त, कानून एवं व्यवस्था उपेंद्र कुमार और पुलिस उपायुक्त यातायात आशीष कुमार श्रीवास्वव ने संयुक्त प्रेसवार्ता में बताया कि लखनऊ में यातायात को सुगम व सुदृढ़ बनाने के लिए एवं यातायात के सुचारू संचालन के लिए पूर्व में 11 नो पार्किंग जोन 17 जुलाई को घोषित किये गये थे। यहां पर लगातार कार्रवाई की जा रही है।

इसके अलावा पुलिस उपायुक्त यातायात द्वारा की गई बैठक में ट्रैफिक की नो-पर्किंग जोन के संबंध में सुझावों पर विचार करने पश्चात पत्रकारपुरम चौराहे से हुसड़िया चौराहे तक सड़क के दोनों तरफ गोमनीगर, पुत्रकारपुरम चौराहे से कैप्टन मनोज पांडेय चौराहे तक सड़क के दोनों तरफ गोमतीनगर, पत्रकारपुरम चौराहे से नवाबपुरवा चौराहे तक सड़क के दोनों तरफ गोमतीनगर, पत्रकारपुरम चौराहे से ग्वारी चौराहे तक सड़क के दोनों तरफ गोमतीनगर, अवध चौराहे पर चारों तरफ सौ मीटर की परिधि में एवं इसी परिधि के समस्त सड़कों के दोनों तरफ कृष्णानगर व पारा तक।

इसी प्रकार से पालीटेक्निक चौराहे पर चारो तरफ सौ मीटर की परिधि में एवं इसी परिधि के समस्त सड़कों के दोनों तरफ गाजीपुर, पूर्व में आलमबाग बस अड्डे के सामने के नो पार्किंग जोन को संशोधित टेढ़ी पुलिया आलमबाग से पिकेडली तिराहा तक सड़क के दोनों तरफ आलमबाग, परा व कृष्णा को नो पार्किंग जोन घोषित किया गया है। उक्त मार्गों पर 25 अगस्त से नो पर्किंग जोन अग्रिम आदेश तक घोषित किया जाता है।

इसके संबंध में उक्त तिथि से एक सप्ताह तक यातायात पुलिस अधिकारी व कर्मचारी द्वारा जागरूकता के लिए नो पार्किंग का बोर्ड स्थापित किया जाएगा। एक सप्ताह के बाद नो पार्किंग जोन पर खड़े वाहन टो करके हटाने के बाद जुर्माना वसूला जाएगा। इस आदेश से आकस्मिक सेवा से संबंधित वाहन मुक्त रहेंगे। वाहन सड़क के किनारे अंतिम पीली व सफेद पट्टी की बाई ओर पार्क किये जा सकेंगे किन्तु चौराहों के सौ मीटर की परिधि में कोई आटो रिक्शा आदि पार्क नहीं किया जाएगा और न रोक कर सवारी भरी जाएगी।

*न हो परेशान : हाईस्कूल और इंटर की बोर्ड परीक्षा के लिए फार्म भरने की तिथि बढ़ी*

लखनऊ । हाईस्कूल और इंटर की पढ़ाई करने वाले छात्र-छात्राओं के लिए यह राहत भरी खबर है। चूंकि शासन ने वर्ष 2024 के बोर्ड परीक्षा की10वीं व 12वीं का फार्म भरने व 9वीं-11वीं के पंजीकरण की तिथि 10 सितंबर तक बढ़ा दी है। हालांकि बोर्ड परीक्षा फार्म भरने के लिए 100 रुपये विलंब शुल्क भी देना होगा।

शासन के अनुसार कक्षा 10 व 12वीं के संस्थागत व व्यक्तिगत परीक्षार्थियों के परीक्षा शुल्क प्राप्त करने/आवेदन पत्र ऑनलाइन भरने की तिथि 16 अगस्त से बढ़ाकर 10 सितंबर कर दी गई है। 10 सितंबर तक 100 रुपये प्रति छात्र विलंब शुल्क के साथ परीक्षा शुल्क चालाना के माध्यम से कोषागार में जमा किए जा सकेंगे। वहीं विलंब शुल्क के साथ जमा परीक्षा शुल्क की सूचना, शैक्षिक विवरण वेबसाइट पर इसी तिथि तक अपलोड कर सकेंगे।

11 से 13 सितंबर तक ऑनलाइन अपलोड सूचना की जांच कर सकेंगे लेकिन इसमें अपडेशन नहीं हो सकेगा। 14 से 20 सितंबर तक ऑनलाइन विवरण में संशोधन किया जा सकेगा लेकिन नया पंजीकरण नहीं होगा। वहीं कक्षा नौ व 11वीं के पंजीकरण करने की तिथि भी 25 अगस्त से बढ़ाकर 10 सितंबर कर दी गई है। माध्यमिक शिक्षा विभाग के विशेष सचिव डॉ. रुपेश कुमार ने बताया कि 50 रुपये पंजीकरण शुल्क की दर से कोषागार में एकमुश्त जमा व शैक्षिक विवरण ऑनलाइन अपलोड किया जा सकेगा।

वहीं विद्यार्थियों के विवरण 11 से 13 सितंबर तक चेक किया जा सकेगा। 14 सितंबर को इसे संशोधित किया जा सकेगा। किंतु कोई नया पंजीकरण या सूचना अपलोड नहीं की जा सकेगी। वहीं 30 सितंबर तक संस्था की ओर से पंजीकृत अभ्यर्थियों के फोटो युक्त सूची व शुल्क की सूचना प्रति परिषद के क्षेत्रीय कार्यालय में भेजने के लिए डीआईओएस कार्यालय में जमा कराएंगे।

*चेहल्लुम और जन्माष्टमी पर नहीं खुलेगा स्कूल, संशोधित आदेश जारी*

लखनऊ । स्वच्छता पखवाड़ा में छुट्टी के दिन भी स्कूल खोले जाने के निर्णय के विरोध को देखते हुए आखिरकार उत्तर प्रदेश के बेसिक शिक्षा विभाग को अपना आदेश वापस लेना पड़ा। शुक्रवार को संशोधित आदेश जारी करते हुए विभाग ने कहा है कि सार्वजनिक अवकाश के दिन की निर्धारित गतिविधि, उसके अगले कार्य दिवस पर आयोजित की जाएगी। इससे शिक्षकों ने बड़ी राहत की सांस ली है।

जानकारी के लिए बता दें कि विभाग की ओर से पूर्व में जारी आदेश में यह कहा गया था कि एक से पंद्रह सितंबर तक शिक्षा मंत्रालय के निर्देश के अनुसार स्वच्छता पखवाड़ा आयोजित किया जाएगा। इसमें एक से पंद्रह सितंबर तक प्रतिदिन के कार्यक्रम निर्धारित किए गए थे। ऐसे में इसमें रविवार, चेहल्लुम और जन्माष्टमी का अवकाश भी पड़ रहा था। इसे लेकर शिक्षक काफी परेशान थे। चूंकि चेहल्लुम और जन्माष्टमी की छुट्टी रद्द हो रही थी। यह आदेश आने के बाद शिक्षकों में विरोध शुरू हो गया था।

विभाग में विरोध को देखते हुए महानिदेशक स्कूल शिक्षा विजय किरन आनंद ने इसे लेकर संशोधित आदेश जारी किया। उन्होंने कार्यक्रम जारी करते हुए कहा कि निर्धारित तिथि के बीच यदि पहले से कोई सार्वजनिक अवकाश है तो उस दिन की निर्धारित गतिविधि उसके अगले कार्य दिवस में पूरी की जाएगी। उन्होंने कहा है कि कार्यक्रम की प्रतिदिन की गिविधियों की फोटो और वीडियो अपलोड की जाएगी। कार्यक्रम में उपस्थित शिक्षकों व छात्रों की संख्या भी अपलोड की जाएगी। यह नया आदेश आने के बाद शिक्षकों ने राहत की सांस ली।

*स्वामी प्रसार्द मौर्य बोले,जब आज तक भारत कभी हिंदू राष्ट्र नहीं था तो अब हिंदू राष्ट्र हो ही नहीं सकता*

लखनऊ । अपने बयान से चर्चित रहने वाले सपा के राष्ट्रीय महासचिव स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा कि आज तक भारत कभी हिंदू राष्ट्र था ही नहीं। जब आज तक भारत कभी हिंदू राष्ट्र नहीं था तो अब हिंदू राष्ट्र हो ही नहीं सकता।

देश का संविधान पंथ निरपेक्ष विचारधारा पर आधारित है, जिसमें हिंदू-मुस्लिम-सिख-इसाई आपस में हैं सब भाई-भाई की बात को संस्कृति के रूप में मानते हैं और स्वीकारते भी हैं।

सपा के राष्ट्रीय महासचिव शुक्रवार को जातीय जनगणना विषयक विचार गोष्ठी में भाग लेने आए थे और मीडिया से रूबरू थे। उन्होंने कहा कि हिंदू राष्ट्र की बात करेंगे तो कोई क्यों खालिस्तान की मांग नहीं कर सकता। धर्म के नाम पर बांटने की बात दोहरा नहीं सकता। लंबी गुलामी के बाद आजादी मिली है, इसलिए देश को बांटने वालों की साजिश से सावधान रहना होगा।

जूता कांड में राजभर के बयान पर स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा कि जब घटना करने वाले ने खुद को भाजपा का कार्यकर्ता बता दिया है तो कौन क्या कह रहा है, इस पर ध्यान देने की जरूरत नहीं है।

उन्होंने कहा कि सत्ता में आने से पहले जातीय जनगणना की बात और वादे किए जाते हैं, लेकिन सत्ता में आने के बाद मुकर जाते हैं। भाजपा की डबल इंजन सरकार ने जातीय जनगणना की परंपरा को खत्म कर दिया है। यही वजह है कि पिछड़ों को राहत नहीं मिल पाती है। सपा सत्ता में आई तो जातीय जनगणना कराई जाएगी।

*सीएम योगी आदित्यनाथ ने एक सप्ताह के भीतर सभी पुलिस थानों में सीसीटीवी लगाने का दिया निर्देश*

लखनऊ । मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शुक्रवार को 'सेफ सिटी परियोजना' के प्रगति की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि व्यावसायिक प्रतिष्ठानों, चौक-चौराहों, सरकारी व निजी अस्पतालों, शिक्षण संस्थानों में अनिवार्य रूप से सीसीटीवी लगाए जाएं। आम जन, व्यापारियों, संस्थान संचालकों को जागरूक कर उन्हें क्राइम कंट्रोल में सीसीटीवी के महत्व को बताया जाए और सीसीटीवी कैमरे लगाने के लिए प्रेरित करें। मुख्यमंत्री ने कहा कि लोग अपनी सुविधानुसार अपने सीसीटीवी फुटेज का डेटा अपने पास ही सुरक्षित रख सकते हैं, लेकिन यह सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि आवश्यकता पड़ने पर फुटेज केवल पुलिस को ही उपलब्ध कराई जाएगी। इसके अतिरिक्त, जहां आवश्यकता हो, वहां नगर निगम, स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट अथवा स्थानीय प्रशासन व पुलिस द्वारा सीसीटीवी लगाए जाएंगे। मुख्यमंत्री ने अगले एक सप्ताह के भीतर सभी पुलिस थानों को सीसीटीवी से लैस करने के निर्देश भी दिए हैं।  

सीएम योगी ने कहा कि प्रथम चरण में सभी 17 नगर निगमों और गौतमबुद्ध नगर को 'सेफ सिटी' के रूप में विकसित किया जाना है। जबकि दूसरे चरण में 57 जनपद मुख्यालयों की नगर पालिकाओं और फिर तीसरे चरण में 143 नगर पालिकाओं को सेफ सिटी परियोजना से जोड़ा जाए। ऐसे सभी नगरों के प्रवेश द्वार पर 'सेफ सिटी' का बोर्ड लगा कर इसकी विशिष्ट ब्रांडिंग भी की जानी चाहिए। इस प्रकार, उत्तर प्रदेश सर्वाधिक सेफ सिटी वाला देश पहला राज्य हो सकेगा।

 उन्होंने कहा कि वर्तमान में सेफ सिटी परियोजना महिलाओं की सुरक्षा पर केंद्रित है। हमें इसे विस्तार देते हुए बुजुर्गों, बच्चों और दिव्यांग जनों की सुरक्षा से भी जोड़ना चाहिए। सेफ सिटी के माध्यम से सार्वजनिक स्थानों पर महिलाओं, बच्चों, बुजुर्गों व दिव्यांग जनों के लिए एक सुरक्षित, संरक्षित एवं सशक्त वातावरण बनाने की मुहिम को आवश्यक तेजी मिलेगी।  

समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री ने कहा कि महिला सुरक्षा, सम्मान व स्वावलंबन सुनिश्चित करने के संकल्प की पूर्ति में "सेफ सिटी परियोजना" अत्यंत उपयोगी सिद्ध हो रही है। प्रदेश में इस परियोजना के माध्यम से लखनऊ पुलिस कमिश्नरेट के अंतर्गत मॉडर्न कंट्रोल रूम, पिंक पुलिस बूथ, आशा ज्योति केंद्र, सीसीटीवी कैमरे, महिला थानों में परामर्शदाताओं के लिए हेल्प डेस्क, बसों में पैनिक बटन व अन्य सुरक्षा उपायों को लागू करने में सहायता मिली है। अब हमें इसे और विस्तार देना होगा। 

बैठक में विभिन्न संबंधित विभागों के अपर मुख्य सचिव/प्रमुख सचिव गणों ने सेफ सिटी परियोजना को लेकर अब तक की प्रगति की जानकारी भी दी। मुख्यमंत्री को अवगत कराया गया कि अब तक आगरा, अलीगढ़, बरेली, झांसी, कानपुर, लखनऊ, मुरादाबाद, प्रयागराज, सहारनपुर व वाराणसी स्मार्ट सिटी में पुलिस ने 9396 स्थानों को सीसीटीवी लगाए जाने के लिए चिन्हित किया है, इसमें से अब तक 3489 जगहों पर कैमरे लगाए जा चुके हैं। अयोध्या, गोरखपुर, फिरोजाबाद, मथुरा-वृंदावन, शाहजहांपुर, मेरठ और गाजियाबाद में चिन्हित 7600 से अधिक जगहों पर सीसीटीवी कैमरे लगाए जाने हैं। 

इसके लिए एजेंसी चयन की प्रक्रिया चल रही है। बैठक में मुख्यमंत्री जी ने 'यूपी सेफ सिटी एप' के बारे में एक प्रस्तुतिकरण भी देखा और इसे व्यवहारिक बनाए जाने के लिए आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। उन्होंने यह भी कहा की प्रत्येक माह में एक बार जनपद स्तर पर महिलाओं, बच्चों, बुज़ुर्गों व दिव्यांगजन के लिए विशेष कार्यक्रम आयोजित करें। उनकी समस्याएं सुनें, यथोचित समाधान करें। सफल महिलाओं, बच्चों, बुजुर्गों, दिव्यांगजन की पहचान कर उन्हें रोल मॉडल के रूप में प्रस्तुत करें। यह प्रयास अन्य लोगों के लिए प्रेरक होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि सेफ सिटी की परिकल्पना को साकार करने के लिए सार्वजनिक परिवहन वाले वाहन के चालकों का सत्यापन आवश्यक है। ऐसे में, टैक्सी, ई-रिक्शा, ऑटो, टेम्पो आदि वाहन के चालकों का विधिवत पुलिस वेरिफिकेशन किया जाए।