सुप्रीम कोर्ट में समलैंगिक शादियों की मान्यता देने की मांग वाली याचिकाओं पर सुनवाई के दौरान बोले सीजेआई, अब हम कानून के मामले में अमेरिका से बहु


सुप्रीम कोर्ट में गुरुवार को भी समलैंगिक शादियों की मान्यता देने की मांग वाली याचिकाओं पर सुनवाई हुई। सरकार इसी बात पर अड़ी है कि सुप्रीम कोर्ट को इस मामले में सुनवाई नहीं करना चाहिए और फैसला संसद पर छोड़ देना चाहिए। बुधवार को दिलचस्प बहस हुई। केंद्र सरकार का पक्ष रखते हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने जब अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट के एक फैसले का जिक्र किया तो सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि अब हम कानून के मामले में अमेरिका से बहुत आगे निकल गए हैं।

दरअसल तुषार मेहता ने अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट के उस फैसले का जिक्र किया था जिसमें कोर्ट ने पांच दशक पुराने ऐतिहासिक फैसले को बदलकर महिलाओं को गर्भपात करवाने के कानूनी अधिकार को समाप्त कर दिया था। सीजेआई ने कहा कि सौभाग्य की बात है कि भारत अमेरिका के कानून से इस मामले में बहुत आगे है। आखिर अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट के जिस फैसले का जिक्र सुप्रीम कोर्ट में किया गया यहां डिटेल में पढ़िए।

क्या था अमेरिका का पूरा मामला

अमेरिका में पहले महिलाओं को गर्भपात करवाने का कानूनी अधिकार दिया था। अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने ही साल 1973 में महिलाओं को यह अधिकार दिया था। हालांकि अब सुप्रीम कोर्ट ने उस फैसले को पलटते हुए कहा कि संविधान गर्भपात का अधिकार नहीं देता है। हालांकि कोर्ट ने यह भी कहा था कि अमेरिका के सभी राज्य गर्भपात को लेकर अपने अलग से नियम कानून बना सकते हैं।

क्या था 50 साल पहले का फैसला

सुप्रीम कोर्ट ने जिस फैसले को पलटा उस केस का नाम था, 'रो वी वेड।' उस मामले में हुआ यह था कि नॉर्मा मैककॉर्वी नाम की महिला को तीसरा बच्चा होने वाला था लेकिन वह उसे जन्म नहीं देना चाहती थीं। उन्होंने जब अमेरिका के फेडरल कोर्ट का रुख किया तो उन्हें गर्भपात करवाने की इजाजत नहीं दी गई। इसके बाद उन्होंने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया और वहां से उन्हें गर्भपात करवाने की इजाजत दे दी गई। सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि गर्भ के बारे में फैसला महिलाओं को ही करना चाहिए। इसके बाद से अमेरिका में महिलाओं को सुरक्षित गर्भपात करवाने का अधिकार मिला हुआ था। साल 2022 में अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने 6:3 के बहुमत से 50 साल पुराने फैसले को पलट दिया। इस फैसले में गर्भपात को असंवैधानिक बताया गया।

इस मामले में भारत कैसे है आगे?

सीजेआई ने कहा कि इस मामले में भारत अमेरिका से आगे है। दरअसल रो वी वेड फैसले दो साल पहले ही भारत में मेडिकल टर्मिनेशन प्रेग्नेंसी ऐक्ट 1971 पास किया था। इस कानून के तहत भारत में महिलाओं को शर्तों के साथ गर्भपात कराने का अधिकार दिया गया था। फिलहाल कई संशोधनों के बाद अब 24 हफ्ते तक गर्भपात कराने का अधिकार है। इसमें भी कई अपवाद हैं। सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुनाते हुए अविवाहित महिलाओं को भी 24 हफ्ते की प्रेग्नेंसी तक गर्भपात का अधिकार दे दिया था। सामान्य मामलों में पहले केवल विवाहित महिलाओं को ही 20 से 24 हफ्ते के बीच गर्भपात का अधिकार था।

मुंबई-पुणे एक्सप्रेसवे पर भीषण सड़क हादसा, 7 से 8 गाड़ियां आपस में टकराई, 11 लोग जख्मी, कई लोगों की स्थिति गंभीर, लगा लंबा जाम

मुंबई-पुणे एक्सप्रेसवे पर भीषण सड़क हादसा हुआ है। इस हादसे में 7 से 8 गाड़ियां आपस में टकरा गई हैं। रिपोर्ट्स के मुताबिक एक ट्रक के अनियंत्रित होने की वजह से यह हादसा हुआ है। यह हादसा कितना बड़ा था इसका अंदाजा उन तस्वीरों से लगाया जा सकता है, जिनमें गाड़ियों के परखच्चे उड़े नजर आ रहे हैं। एक्सप्रेसवे के खोपोली एग्जिट के पास यह हादसा हुआ है और इसके चलते लंबा जाम लग गया है। फिलहाल राहत एवं बचाव कार्य जारी है। एक्सप्रेसवे पर तैनात पुलिस एवं बचाव दल की टीम तुरंत ही मौके पर पहुंच गई थी। 

यह हादसा पुणे से मुंबई जाने वाली लेन में हुआ है, जिसमें करीब 11 लोग जख्मी बताए जा रहे हैं। कई लोगों की स्थिति गंभीर भी है। इस हादसे की वजह से पुणे से मुंबई जाने वाला ट्रैफिक फिलहाल रुका हुआ है। इस हादसे पीछे ट्रक के अनियंत्रित होने को वजह माना जा रहा है, लेकिन अब तक इसकी पुष्टि नहीं हो सकी है। प्रशासन का भी कहना है कि घटना की जांच की जा रही है और उसके बाद ही कोई जानकारी दी जाएगी। यह हादसा इतना भीषण था कि कार तो टकराने के बाद ट्रक के ऊपर चढ़ गई।

समलैंगिक विवाह के कानूनी मान्यता को लेकर सुप्रीम कोर्ट में बहस जारी, केंद्र ने पूछा- गे या फिर लेस्बियन मैरिज में पत्नी किसे कहेंगे?

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सेम सेक्स मैरिज को मान्यता देने वाली 20 याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट में छठे दिन की सुनवाई खत्म हो गई है। मामले की अगली सुनवाई 3 मई को होगी। सुनवाई के दौरान केंद्र का पक्ष रखते हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने पूछा कि समलैंगिक विवाह में पत्नी कौन होगा, जिसे भरण-पोषण का अधिकार मिलता है। गे या लेस्बियन मैरिज में पत्नी किसे कहेंगे। इससे पहले समलैंगिक विवाह के 5वें दिन की सुनवाई के दौरान केंद्र सरकार ने कहा कि शादी करने के समान अधिकार देने के सवाल को फैसला करने के लिए संसद पर छोड़ देना चाहिए।

समलैंगिक विवाह मामले में वादी और प्रतिवादी दोनों की तरफ से सुप्रीम कोर्ट में दलील पेश की जा रही है। सुनवाई सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस एसके कौल, जस्टिस रवींद्र भट, जस्टिस पीएस नरसिम्हा और जस्टिस हिमा कोहली की संवैधानिक बेंच कर रही है।सुनवाई के दौरान केंद्र का पक्ष रखते हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि अपोजिट जेंडर वाले समलैंगिकों को दिए जाने वाले बेनिफिट की मांग सकते हैं। यह भी हो सकता है कि अपोजिट जेंडर वाले शादीशुदा अदालत में आएंगे और कहेंगे कि मुझे वही लाभ मिले जो समलैंगिक जोड़ों को मिलता है, क्योंकि मैं भीतर से हेट्रोसेक्शुअल (विषमलैंगिक) हो सकता हूं, लेकिन मुझे कुछ और लगता है...।

तुषार मेहता ने तर्क दिया कि डोमिसाइल के मुद्दे पर आते हैं। शादी के दौरान पत्नी का डोमिसाइल होता है और यह तय करना होगा कि पत्नी कौन है। उत्तराधिकार अधिनियम पिता, माता, भाई, विधवा, विधुर प्रदान करता है। यदि इस संबंध में एक साथी की मृत्यु हो जाती है तो कौन पीछे रह जाता है विधवा या विधुर? एसजी मेहता ने कहा कि अगर आपके आधिपत्य को पति या पत्नी के स्थान पर व्यक्ति पढ़ना था, तो एक व्यक्ति को दूसरे से रखरखाव का दावा करने का अधिकार होगा। मतलब, विषमलैंगिक विवाह के मामले में पति पत्नी से दावा कर सकता है। इस दलील पर सीजेआई ने कहा कि इसलिए, इन प्रावधानों के परिप्रेक्ष्य को देखते हुए शायद हम आपके तर्कों को यह कहकर समझ सकते हैं कि एसएमए के प्रावधानों की पुनर्व्याख्या करने से तीन प्रमुख समस्याएं होंगी।

तुषार मेहता ने आगे कहा कि पांच साल बाद क्या होगा, कल्पना करें। सेक्शुअल ऑटोनॉमी का हवाला देकर कोई अनाचार पर रोक लगाने वाले प्रावधानों को ही कोर्ट में चुनौती दे सकता है। इस पर सीजेआई ने कहा कि ये तर्कसंगत नहीं है। कोई भी अदालत कभी भी इसका समर्थन नहीं करेगी।

दंतेवाड़ा नक्सली हमले का वीडियो आया सामने, जवानों ने इस तरह दिया कायरता का मुंहतोड़ जवाब

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छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा में बुधवार को हुए नक्सली हमले में 10 जवान शहीद हो गए थे। इस हमले से जुड़ा एक वीडियो सामने आया है।ये वीडियो धमाके के ठीक बाद का है, इस वीडियो में ब्लास्ट के बाद घायल पड़े जवान और फिर फायरिंग की आवाज भी सुनाई दे रही है। बता दें कि बुधवार को हुए इस आईडी ब्लास्ट में छत्तीसगढ़ डीआरजी के 10 जवान और एक ड्राइवर शहीद हो गए। आज मुख्यमंत्री भूपेश शहीद जवानों को श्रद्धांजलि दी।

वीडियो में एक पुलिसकर्मी को विस्फोट के ठीक बाद सड़क के किनारे रेंगते हुए और फिर नक्सलियों पर फायरिंग करते हुए देखा जा सकता है। सड़क के उस पार एक धागे जैसी चीज भी पड़ी देखी जा सकती है, जिसके बारे में संदेह है कि यह आईईडी से जुड़ा तार है जिसकी मदद से सुरक्षाकर्मियों को ले जा रहे वाहन को उड़ाया गया।

बताया जा रहा है कि जवानों के पीछे आ रहे अन्य वाहन के चालक ने इसे बनाया है। वह भी पुलिस का जवान है।हालांकि पुलिस ने अभी तक वीडियो की पुष्टि नहीं की है।

बता दें कि दंतेवाड़ा में बुधवार को नक्सलियों द्वारा किए गए एक आईईडी विस्फोट में कम से कम 10 जवान और एक नागरिक की मौत हो गई।दंतेवाड़ा के अरनपुर रोड पर बुधवार दोपहर नक्सलियों ने एक गश्ती दल पर हमला किया। जिला रिजर्व गार्ड (डीआरजी) की एक टीम एक वाहन में अपने मुख्यालय लौट रही थी, जब अरनपुर रोड पर रखे एक आईईडी में विस्फोट हो गया, जिसमें कम से कम 10 जवान और चालक मारे गए।

कलकत्ता हाई कोर्ट से ममता सरकार को झटका, राम नवमी हिंसा की जांच एनआईए को सौंपी

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कलकत्ता उच्च न्यायालय ने पश्चिम बंगाल में रामनवमी हिंसा की जांच केंद्रीय एजेंसी एनआईए द्वारा किए जाने का आदेश दिया है। पिछले महीने रामनवमी समारोह के दौरान पश्चिम बंगाल के हावड़ा में हिंसा हुई थी। जिले में दो समूहों के बीच झड़प के दौरान कई वाहनों में आग लगा दी गई थी और पथराव किया गया था. साथ ही दुकानों में भी तोड़फोड़ की गई थी।

कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश की खंडपीठ ने गुरुवार को पश्चिम बंगाल पुलिस को दो सप्ताह के भीतर जांच से संबंधित सभी आवश्यक दस्तावेज एनआईए को सौंपने का आदेश दिया।हाईकोर्ट ने सभी संबंधित थानों को दो सप्ताह के भीतर सभी रिकॉर्ड, एफआईआर और सीसीटीवी फुटेज एनआईए को सौंपने का आदेश दिया है। केंद्र सरकार से एनओसी मिलने के बाद एनआईए मामले की जांच शुरू करेगी।

विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी द्वारा दायर एक जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश टीएस शिवगणनम की अध्यक्षता वाली एक खंडपीठ ने पश्चिम बंगाल पुलिस से राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) को जांच स्थानांतरित करने का निर्देश दिया। जनहित याचिका में अधिकारी ने हिंसा की एनआईए जांच की मांग की थी जिसमें यह आरोप लगाया गया था कि हिसा के दौर बम विस्फोट भी हुए थे। अदालत ने राज्य पुलिस को दो सप्ताह के भीतर मामले से संबंधित सभी रिकॉर्ड और सीसीटीवी फुटेज केंद्र सरकार को स्थानांतरित करने का निर्देश दिया

बता दें कि रामनवमी के मौके पर पश्चिम बंगाल और बिहार में कई जगहों पर सांप्रदायिक हिंसा हुई थी। इन जगहों पर संपत्तियों को निशाना बनाया गया और आगजनी हुई। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने पश्चिम बंगाल के हावड़ा जिले में रामनवमी के दौरान हुई हिंसा पर राज्य सरकार से मंगलवार को एक विस्तृत रिपोर्ट तलब की थी। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के राज्यपाल सी वी आनंद बोस से बात करने और राज्य में और खासतौर पर हावड़ा के हिंसा प्रभावित इलाकों में मौजूदा स्थिति का जायजा लेने के कुछ दिनों बाद यह कदम उठाया गया।

#bhupesh_baghel_gave_shoulder_mortal_remains_of_the_martyred_soldiers *मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने दंतेवाड़ा में शहीद जवानों की अर्थी को दिया कं


26 अप्रैल को छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा में नक्सलियों ने आईडी ब्लास्ट किया जिसमें 11 जवान शहीद हो गए। शहीद हुए जवानों में 10 डीआरजी (ज़िला रिजर्व गार्ड) के जवान और एक ड्राइवर है।शहीदों को श्रद्धांजलि देने सीएम भूपेश बघेल दंतेवाड़ा की पुलिस लाइन में पहुंचे। यहां सीएम ने जवानों को श्रद्धांजलि दी। इसके साथ-साथ सीएम भूपेश ने शहीद जवानों के अर्थी को कंधा भी दिया।

मुख्यमंत्री बघेल के साथ गृह मंत्री ताम्रध्वज साहू भी दंतेवाड़ा पहुंचे हैं। दोनों नेताओं ने शहीद जवानों के पार्थिव शरीर को कंधा भी दिया। इसके बाद वह जवानों के परिजनों से भी मिले। शहीदों को श्रद्धांजलि देने पहुंचे सीएम भूपेश बघेल ने शहीदों के परिजनों से भी मुलाकात की। सीएम ने रोते-बिलखते परिजनों से भेंट कर शोक संवेदना प्रकट करते हुए उनका ढांढस बंधाया है।

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि जवानों की शहादत व्यर्थ नहीं जाएगी। उन्होंने कहा कि नक्सलियों को ज्यादा नुकसान होगा यह घटना नक्सलियों की हताशा को बता रही है। उन्होंने कहा कि अब नक्सलवाद समाप्ति की तरफ है।

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के खिलाफ कांग्रेस ने दर्ज कराई शिकायत, भड़काऊ बयान देने का लगाया आरोप

#congress_leaders_file_police_complaint_against_amit_shah 

कर्नाटक में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के खिलाफ कांग्रेस ने एफआईआर दर्ज कराई है।कांग्रेस ने बीजेपी की एक रैली के दौरान भड़काऊ बयान देने और नफरत फैलाने का आरोप लगाया है। इसके खिलाफ कांग्रेस के नेताओं ने बेंगलुरु के हाई ग्राउंड्स पुलिस स्टेशन में अमित शाह और बीजेपी के खिलाफ शिकायत भी दर्ज कराई है।दरअसल अमित शाह ने अपने बयान में कहा था कि अगर राज्य में कांग्रेस की सरकार बनी तो प्रदेश में दंगे होंगे। इस पर कांग्रेस ने कड़ी आपत्ति जताई है और अमित शाह के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है।

कांग्रेस नेता और कर्नाटक चुनाव के प्रभारी रणदीप सुरजेवाला और कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष डीके शिवकुमार गुरुवार को बेंगलुरु के हाई ग्राउंड पुलिस स्टेशन पहुंचे और वहां केंद्रीय गृह मंत्री और भाजपा नेता अमित शाह, जिस रैली में अमित शाह ने बयान दिया, उस रैली के आयोजक के खिलाफ भड़काऊ भाषण देने, लोगों को शत्रुता फैलाने और विपक्ष को बदनाम करने के आरोप में मामला दर्ज कराया। 

इससे पहले कांग्रेस नेता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने इसे लेकर ट्वीट भी किया था। इसमें उन्होंने कहा था कि बीजेपी और अमित शाह हर दिन कर्नाटक का अपमान कर रहे हैं। जेपी नड्डाजी का कहना है कि कन्नडिगों को मोदी के आशीर्वाद की जरूरत है। उन्होंने सवाल किया था कि क्या उन्हें राज्य को चलाने के लिए एक भी कन्नडिगा नहीं मिल सकता है कि इसे मोदी को सौंपना है?

अमेरिका के राजदूत एरिक गार्सेटी का बड़ा बयान, कहा-दुनिया के भविष्य के लिए अहम हैं भारत-अमेरिका संबंध

#usindiarelationship 

भारत के लिए अमेरिका के राजदूत एरिक गार्सेटी ने कहा है कि अमेरिका और भारत के संबंध दुनिया के भविष्य के लिए अहम हैं। उन्होंने कहा कि भारत और अमेरिका आज जितने मुद्दों पर निकटता से काम कर रहे हैं, ऐसा पहले कभी नहीं हुआ। अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन के करीबी सहयोगी गार्सेटी ने पिछले महीने भारत में अमेरिका के राजदूत के रूप में आधिकारिक रूप से शपथ ग्रहण की थी। अमेरिका के लिए सबसे अहम राजनयिक पदों में शामिल इस पद पर नियुक्ति दो साल से अधिक समय बाद हुई थी।

गार्सेटी ने ‘कांग्रेशनल इंडिया कॉकस’ के सह अध्यक्ष रो खन्ना और माइकल वाल्त्ज द्वारा आयोजित अपनी तरह के पहले भारत-अमेरिका शिखर सम्मेलन में प्रतिष्ठित भारतीय-अमेरिकियों की सभा को संबोधित करते हुए कहा, दुनिया में कुछ ऐसे संबंध हैं, जो अमेरिका और भारत के लिए ज्यादा अहम हैं। हमारे (भारत-अमेरिका) संबंध दुनिया के भविष्य के लिए महत्वपूर्ण हैं। जैसा कि अमेरिका के राष्ट्रपति (जो) बाइडन ने कहा है कि भारत और अमेरिका अपरिहार्य साझेदार हैं। गार्सेटी ने कहा, भारत जाने से पहले, मैंने अमेरिका और भारत के संबंधों को लेकर राष्ट्रपति बाइडन की सोच को लेकर उनसे बात की थी। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि ये संबंध कितने अहम हैं। ये संबंध पूरे ग्रह और खासकर हम दो देशों के लिए बेहद अहम हैं।

हम साथ मिलकर 21वीं सदी को दिशा दे सकते हैं- गार्सेटी

गार्सेटी ने कहा कि हम दुनिया के प्रमुख लोकतंत्र हैं। हम दुनिया की सबसे बड़ी और पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाएं हैं। हमें दोनों देशों के लोग आपस में जोड़ते हैं और हम साथ मिलकर 21वीं सदी को दिशा दे सकते हैं। गार्सेटी ने कहा कि भारत और अमेरिका आज जितने मुद्दों पर निकटता से काम कर रहे हैं, ऐसा पहले कभी नहीं हुआ।

दिल्ली की मेयर बनने के बाद शैली ओबेरॉय ने कहा, मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल का धन्यवाद करती हूं, उनकी वजह से दूसरी बार महापौर चुनी गई

दिल्ली मेयर शैली ओबेरॉय ने कहा कि मैं मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल का धन्यवाद करती हूं, उनकी वजह से आज मैं दूसरी बार महापौर चुनी गई हूं। भाजपा के प्रत्याशी ने आज अपना नाम वापस लिया।

आम आदमी पार्टी की शैली ओबेरॉय को 26 अप्रैल को सर्वसम्मति से दिल्ली का मेयर चुना गया, जब भाजपा उम्मीदवार शिखा राय ने अपना नामांकन वापस ले लिया। इसके साथ, ओबेरॉय ने दिल्ली नगर निगम के प्रमुख के रूप में दूसरा कार्यकाल हासिल कर लिया है। राय ने सदन को बताया कि स्थायी समिति का चुनाव नहीं होने के कारण उन्होंने अपना नामांकन वापस ले लिया।

दिल्ली मेयर शैली ओबेरॉय ने कहा कि मैं मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल का धन्यवाद करती हूं, उनकी वजह से आज मैं दूसरी बार महापौर चुनी गई हूं। भाजपा के प्रत्याशी ने आज अपना नाम वापस लिया। भाजपा ने एक तरह से आज सरेंडर कर दिया और उन्होंने मान लिया कि आंकड़े हमारे पास हैं। उन्होंने आज अपनी हार को सही तरीके से स्वीकार कर लिया।  

आप के निवर्तमान उप महापौर आले मोहम्मद इकबाल को पद पर एक और कार्यकाल मिला। भाजपा उम्मीदवार सोनी पाल भी दौड़ से बाहर हो गए। सत्तारूढ़ आप ने महापौर चुनाव के परिणाम का स्वागत किया। आप के राष्ट्रीय संयोजक और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि शेली और एले को फिर से मेयर और डिप्टी मेयर बनने पर बधाई।

दुनिया की आंखों में धूल झोंक रहा अमेरिका? मंगल ग्रह पर भेजे गए रोवर की खुली पोल, पढ़िए, नेचर कम्युनिकेशंस’ में प्रकाशित नई रिसर्च


अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा समेत दुनियाभर के वैज्ञानिक लाल ग्रह कहे जाने वाले मंगल पर जीवन की खोज में जुटे हैं। वैज्ञानिकों को उम्मीद है कि मंगल ग्रह पर एलियन जैसे जीवन या फिर उससे जुड़े संकेत मिल सकते हैं।

इसके लिए नासा ने जुलाई 2020 में पर्सीवरेंस रोबोटिक रोवर को मंगल पर भेजा है। पिछले करीब ढाई साल से यह रोबोटिक रोवर्स मंगल की सतह घूम रहा है, लेकिन अब इससे जुड़ी एक निराश करने वाली खबर सामने आई है।

‘नेचर कम्युनिकेशंस’ में आज प्रकाशित नई रिसर्च से पता चला है कि अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा के रोवर में जिन उपकरणों को लगाया गया है वो वास्तव में लाल ग्रह पर जीवन के प्रमाण को खोजने उपयुक्त नहीं हैं। उनकी भी अपनी एक लिमिटेशन है। रोवर्स में लगाए गए उपकरणों की जांच की अगुवाई अरमांडो अज़ुआ-बस्टोस ने की है।

रोवर्स के उपकरण में सीमित क्षमता

अजुआ बस्टोस और उनके सहयोगियों ने अपनी रिसर्च में पाया कि रोवर्स में इस्तेमाल किए गए उपकरणों की जीवन से जुड़ी जानकारी हासिल करने की एक सीमित क्षमता है। रिसर्चरों की टीम ने कहा कि रोवर लाल ग्रह पर मिनरल कंपोनेंट का पता लगाने में तो सक्षम है लेकिन वो हमेशा जैविक अणुओं का पता लगाने में सक्षम नहीं है।

जैविक और भौतिक सीमाओं को परिभाषित करने की जरूरत

बस्टोस ने कहा है कि मंगल ग्रह पर आमतौर पर ठंड ज्यादा रहती है। ऐसी परिस्थितियों में वहां जीवन का प्रमाण ढूंढना काफी चुनौतीपूर्ण है। सबसे पहले हमें वातावरण में मौजूदा जीवन की जैविक और भौतिक सीमाओं को परिभाषित करने की जरूरत है। इसके बाद हमें जीवन की पहचान करने के लिए उपकरण को विकसित करने की जरूरत है

 इसमें जैविक अणु जैसे लिपिड, न्यूक्लिक एसिड और प्रोटीन शामिल हैं।