भारत ने बांग्लादेश को उसी की भाषा मे दिया जवाब, डिप्टी हाईकमिश्नर को किया तलब

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भारत और बांग्लादेश के बीच संबंधों में तनाव बढ़ता जा रहा है। भारतीय विदेश मंत्रालय ने बदलती परिस्थितियों पर चर्चा के लिए बांग्लादेश के उप-उच्चायुक्त नुरल इस्लाम को तलब किया। एक दिन पहले रविवार को बांग्लादेश ने ढाका में तैनात भारतीय उच्चायुक्त प्रणय वर्मा को तलब किया था। विवाद की ताजा वजह सीमा पर बाड़ लगाने का भारत की कोशिशें हैं। बांग्लादेश का आरोप है कि भारत 4,156 किलोमीटर लंबी भारत-बांग्लादेश सीमा पर पांच जगहों पर बाड़ लगाने की कोशिश कर रहा है। उसका दावा है कि यह द्विपक्षीय समझौते का उल्लंघन है।

बांग्लादेशी घुसपैठियों को रोकने के लिए भारतीय सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) ने सुरक्षा को सख्त कर दिया है। बॉर्डर एरिया पर बीएसएफ की पैनी नजर है जिसके चलते बांग्लादेश की मोहम्मद यूनुस की सरकार बौखला गई है। बांग्लादेश के विदेश मंत्रालय ने रविवार को भारतीय उच्चायुक्त प्रणय वर्मा को तलब किया था और सीमा पर भारत की गतिविधियों पर चिंता जताई थी। सोमवार को भारतीय विदेश मंत्रालय ने भी नई दिल्ली में मौजूद बांग्लादेश के उप उच्चायुक्त नूरुल इस्लाम को तलब किया है।

बांग्लादेश की सरकारी समाचार एजेंसी बीएसएस के अनुसार, रविवार को विदेश सचिव जशीम उद्दीन के साथ प्रणय वर्मा की बैठक लगभग 45 मिनट तक चली थी। एक अधिकारी ने कहा, 'ढाका और नई दिल्ली के बीच सुरक्षा के लिए सीमा पर बाड़ लगाने को लेकर समझौता है। हमारे दोनों सीमा सुरक्षा बल – बीएसएफ और बीजीबी (सीमा सुरक्षा बल और बॉर्डर गार्ड बांग्लादेश) इस संबंध में बातचीत कर रहे हैं। हमें उम्मीद है कि इस समझौते को लागू किया जाएगा और सीमा पर अपराधों से निपटने के लिए एक सहयोगात्मक दृष्टिकोण अपनाया जाएगा।

भारत और बांग्लादेश के बीच 4,156 किलोमीटर का बॉर्डर है। इसमें से 3271 किलोमीटर एरिया में भारत ने फेंसिंग कर दी है। 885 किलोमीटर बॉर्डर पर अभी फेंसिंग का काम चल रहा है। पीटीआई की रिपोर्ट के मुताबिक, भारत ने 2010 से लेकर 2023 तक 160 जगहों पर फेंसिंग का काम किया था। 10 जनवरी से BSF ने फिर से यह काम शुरू किया। इनमें से 5 जगहों चपैनवाबगंज, लालमोनिरहाट में तीन बीघा कॉरिडोर, नौगांव में पटनीताला, फेनी, कुश्तिया और कुमिला में फेंसिंग को लेकर विवाद है।

*कैग रिपोर्ट में देरी होने पर हाई कोर्ट ने दिल्ली सरकार को फटकारा, कहा- आपकी ईमानदारी पर संदेह

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दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले आई कैग रिपोर्ट का मुद्दा दिल्ली हाईकोर्ट पहुंच गया है। 7 भाजपा विधायकों ने कैग की रिपोर्ट पर विधानसभा में चर्चा करवाने की याचिका दिल्ली हाईकोर्ट में लगाई थी, जिस पर सोमवार को कोर्ट ने दिल्ली सरकार को फटकार लगाई। दिल्ली हाईकोर्ट ने कैग रिपोर्ट पर विचार करने में देरी के लिए दिल्ली सरकार को फटकार लगाते हुए कहा कि जिस तरह से आपने अपने कदम पीछे खींचे हैं, उससे आपकी ईमानदारी पर संदेह पैदा होता है।

हाईकोर्टकी नाराजगी की वजह

कोर्ट ने विजेंदर गुप्ता सहित भारतीय जनता पार्टी के विधायकों की ओर से दायर याचिका पर हाई कोर्ट ने जोर देते हुए कहा, “आपको रिपोर्ट को तुरंत स्पीकर के पास भेजना चाहिए था और सदन में बहस शुरू करवानी चाहिए थी। दरअसल, दिल्‍ली सरकार की यह जिम्‍मेदारी थी कि इस रिपोर्ट को विधानसभा में पेश किया जाता, लेकिन आम आदमी पार्टी की सरकार ने ऐसा नहीं किया। यही वजह है कि हाईकोर्ट ने सरकार के इस रवैये पर नाराजगी जाहिर की।

आपका टालमटोल बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण-हाई कोर्ट

दिल्ली हाईकोर्ट ने सरकार से कहा कि आप जिस तरह से टालमटोल कर रहे हैं, वह दुर्भाग्यपूर्ण है। आपको कैग रिपोर्ट को विधानसभा स्पीकर के पास भेजने और विधानसभा में चर्चा करने में तत्पर होना चाहिए था।

कैग रिपोर्ट में किया गया दावा

सीएजी रिपोर्ट में यह दावा किया गया है कि पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल ने सिविल लाइंस स्थित सरकारी आवास के रिनोवेशन पर 33.66 करोड़ रुपये खर्च किए थे। लागत से 342 प्रतिशत ज्‍यादा रकम इस काम के लिए खर्च की गई। रिपोर्ट में कहा गया कि अरविंद केजरीवाल के घर के रिनोवेशन का काम 8.62 करोड़ रुपये की निविदा पर किया जाना था। इसकी अनुमानित लागत 7.61 करोड़ तय की गई थी। शुरुआत में ही यह 13.21 प्रतिशत ज्‍यादा थी। जब अरविंद केजरीवाल के घर का काम खत्‍म हुआ तो यह अनुमानित लागत से 342.31 प्रतिशत ज्‍यादा था। यह रकम निविदा राशि से 290.49 प्रतिशत अधिक पाई गई।

बांग्लादेश ने भारतीय उच्चायुक्त को क्यों किया तलब, भारत के साथ नया विवाद

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भारत-बांग्लादेश के बीच सबकुछ सही नहीं चल रहा है। शेख हसीना के तख्तापल के बाद बांग्लादेश में नोबेल शांति पुरस्कार विजेता मो. यूनुस की अंतरिम सरकार बनी। यूनुस के सत्ता आने के बाद से बांग्लादेश में भारत विरोधी लहर बनी हुई है। इस बीच रविवार को बांग्लादेश के विदेश मंत्रालय ने भारत के उच्चायुक्त प्रणय वर्मा को तलब किया है, यह कदम दोनों देशों के बीच सीमा तनाव के बढ़ने के बीच उठाया गया है।

सरकारी समाचार एजेंसी 'बीएसएस' ने पहले अपनी खबर में बताया था कि प्रणय वर्मा को विदेश मंत्रालय ने सीमा पर बढ़ते तनाव पर चर्चा करने के लिए ''तलब'' किया था। विदेश मंत्रालय द्वारा जारी प्रेस वक्तव्य में हालांकि इस शब्द का इस्तेमाल नहीं किया गया।

विदेश मंत्रालय ने बयान में कहा, ''विदेश सचिव राजदूत मोहम्मद जशीम उद्दीन ने आज विदेश मंत्रालय स्थित अपने कार्यालय में भारत के उच्चायुक्त प्रणय वर्मा के समक्ष बांग्लादेश-भारत सीमा पर भारतीय सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) की हाल की गतिविधियों को लेकर बांग्लादेश सरकार की ओर से गहरी चिंता जताई।'' बीएसएस की खबर के अनुसार वर्मा लगभग तीन बजे (स्थानीय समयानुसार) विदेश मंत्रालय पहुंचे। विदेश सचिव के साथ उनकी मुलाकात लगभग 45 मिनट तक चली।

भारतीय उच्चायुक्त प्रणय वर्मा ने बैठक के बाद मीडिया से कहा, ''मैंने विदेश सचिव से मुलाकात कर अपराध मुक्त सीमा सुनिश्चित करने, तस्करी, अपराधियों की आवाजाही और मानव तस्करी की चुनौतियों से प्रभावी तरीके से निपटने संबंधी भारत की प्रतिबद्धता पर चर्चा की।'' उन्होंने कहा, ''सुरक्षा के लिए सीमा पर बाड़ लगाने के संबंध में हमारे बीच आपसी सहमति है। इस संबंध में बीएसएफ और बीजीबी (सीमा सुरक्षा बल और बॉर्डर गार्ड बांग्लादेश) के बीच बातचीत जारी है। हम उम्मीद करते हैं कि आपसी सहमति को लागू किया जायेगा और अपराध से निपटने के लिए सहयोगपूर्ण दृष्टिकोण अपनाया जायेगा।''

बांग्लादेश-भारत सीमा पर बाड़े के निर्माण को लेकर दोनों देशों में विवाद उपजा है। भारत उस पार से लगातार हो रहे घुसपैठ को रोकने के लिए सीमा पर बाड़ का बना रहा है, लेकिन न केवल सीमा पर बने गांव बल्कि बांग्लादेशी सरकार की तरफ से तीखी प्रतिक्रिया आई है।

भारत-बांग्लादेश के रिश्तों में खटास साफ नजर आ रही है। रिश्तों की ये खटास शेख हसीना के सत्ता से बेदखल होने के बाद से उपजी है। पिछले साल 5 अगस्त को बांग्लादेश से पदस्थापित होने के बाद से पूर्व पीएम शेख हसीना भारत में रह रही हैं। उनके बाद बांग्लादेश में मोहम्मद यूनुस की अंतरिम सरकार बनी। यूनुस के सत्ता आने के बाद से बांग्लादेश में भारत विरोधी लहर बनी हुई है।

"World’s Biggest Gujarati Food Festival 2025 Opens to a Grand Start with 13,000+ footfall on day one!"

Mumbai, 12th Jan 2025: The inaugural day of the world's largest Gujarati Food Festival 2025, held at Kora Kendra Ground, Borivali West, Mumbai, on January 10, was a massive success. With over 13,000 enthusiastic attendees, the festival kicked off on a grand note, celebrating Gujarat's rich culinary and cultural heritage. Supported by Gujarat Tourism, the event promises an authentic experience for food lovers and culture enthusiasts alike.

Organized by R Mind Events, now in its fourth season, the Gujarati Food Festival has become a beloved tradition. The event spans three exciting days, from January 10 to 12, offering an immersive journey through Gujarat's vibrant flavors and traditions. Founder Yukkit Vora,Tushar Dixit and Kaushal Aacharya visionary with 20 years of experience, emphasized the festival's mission to showcase the depth and diversity of Gujarati cuisine while dispelling the myth that it is only sweet. The menu boasts iconic dishes such as Umbariyo, Locho, Malai Gola, Walyas Goti Soda, and more, offering a perfect blend of sweet, salty, sour, and spicy flavors.

The festival was inaugurated by the Chief Guest, Shri Gopal Shetty ji, a respected leader celebrated for his contributions to Borivali's development. Other notable attendees included Bhavesh Kothari ji, Vibha Narshana, and Rajveer Singh, a prominent content creator with 1.7 million followers who was accompanied by aspiring photographer Roshan Kamble. 

The cultural program was equally enthralling. Renowned Gujarati singer Sunil Soni captivated the audience with his lively performances, while anchor Kkomal Shah ensured the energy remained high throughout the day. Folk music and dance performances added a traditional touch, creating an atmosphere of joy and celebration.

The Gujarati Food Festival, supported by Gujarat Tourism, underscores the growing appeal of food tourism and the importance of preserving culinary heritage. By celebrating Gujarat's diverse flavors and cultural expressions, the event serves as a gateway to the soul of the state. 

With last day on 12th Jan 2025, visitors can look forward to even more gastronomic delights, cultural performances, and unforgettable memories. Don’t miss this opportunity to savor the true essence of Gujarat at Kora Kendra Ground, Borivali, Mumbai.

For reservations, contact +91 91045 56789 or visit on Instagram 

For media coverage this platform, reach out at +917710030004.

**"Chilli and Acidity: The Fiery Truth Behind Spicy Reactions"**

Overview of Chilli Acidity

Chillies are known for their fiery heat, but they also have a certain level of acidity that can impact digestion and health. While chillies themselves are not highly acidic compared to citrus fruits or vinegar, they can still cause acidity-related discomfort in some people due to their capsaicin content.

Causes and Symptoms of Chilli-Induced Acidity

Capsaicin Irritation: The active compound in chillies, capsaicin, can irritate the stomach lining and trigger excess acid production.

Heartburn: A burning sensation in the chest, especially after eating spicy foods.

Why Choose Homeopathy for Chilli-Induced Acidity?

Homeopathy offers a natural and holistic approach to managing acidity caused by chillies. Instead of merely suppressing symptoms, homeopathic remedies aim to restore balance in the digestive system and strengthen the body's ability to handle spicy foods without discomfort.

Spiritual Homeopathy Clinic in Madhapur, Hyderabad, is available at 194, Road Number 1, MIG No 1, KPHB Phase 1, Kukatpally, Hyderabad, Telangana 500072.

CityWity

You can contact them at +91-9030176176. 

Dipnock: Innovating Business Growth Through Next-Generation Software

In a world where technological advancements define success, businesses are increasingly seeking innovative solutions to stay competitive. DIPNOCK, a prominent software development company, has steadily gained recognition for delivering customized solutions and driving digital transformation.

A Journey of Innovation

DIPNOCK began its journey by developing visitor management systems and real estate management software. Over time, it expanded its expertise to cater to a wide range of industries, emphasizing innovation, automation, and artificial intelligence (AI). In the past year alone, the company successfully delivered solutions to 13 clients, showcasing its ability to address diverse business challenges with precision and excellence.

Visionary Leadership

The operational and strategic growth of DIPNOCK is driven by its founder, Tinku Krishnan, a visionary leader committed to transforming businesses through technology. Under his guidance, the organization has established a dedicated Research and Development (R&D) team specializing in AI-driven automation. This team focuses on integrating AI to streamline operations, enhance efficiency, and unlock new opportunities for businesses.

Global Reach

DIPNOCK operates with a head office in Sharjah, UAE, and software development teams based in Sharjah and Bangalore, India. This dual presence enables the company to combine global reach with local expertise, ensuring agile and effective delivery of tailored solutions.

Focus on Artificial Intelligence

DIPNOCK's emphasis on AI and automation positions it as a leader in helping businesses adapt to an ever-evolving technological landscape. Its R&D team is at the forefront of leveraging AI to develop advanced solutions that enable businesses to streamline processes, improve efficiency, and stay ahead of the competition.

A Commitment to Exceed Expectations

According to Tinku Krishnan, businesses today require more than just conventional solutions—they need forward-thinking strategies that address immediate challenges while anticipating future demands. As he states, “The goal is to help businesses exceed their expectations by leveraging cutting-edge technologies and robust infrastructure.”

Why Businesses Choose DIPNOCK

Customized Solutions: Software tailored to specific business needs.

AI and Automation: Focus on integrating advanced technologies to enhance efficiency.

Experienced R&D Team: Dedicated to innovation and pushing technological boundaries.

Global Presence: Operations in the UAE and India for seamless collaboration.

A Partner for Transformation

For businesses planning to upgrade their operations, DIPNOCK provides solutions designed to go beyond expectations. With its expertise in innovation and advanced technologies, DIPNOCK is transforming businesses into future-ready enterprises.

This article highlights the impact DIPNOCK is making in the world of customized software development, innovation, and AI-driven automation. Organizations looking to navigate the complexities of digital transformation would benefit greatly from aligning with DIPNOCK’s vision and expertise.

Discover how DIPNOCK can transform your business:

Visit website: https://dipnock.com/

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How to recognize fertility issues early advice from experts.

  

Fertility issues have been on the rise and are something that is coming out for open discussion. However, there are still several couples and individuals who hesitate when it comes to visiting a fertility doctor. 

Being aware enough to pay close attention to the early signs of fertility issues makes it a lot easier to deal with and eventually get rid of them (if medically possible). Timely medical intervention is the safest way out and there.  

 

Dr Pooja Bajaj Wadhwa, Senior Consultant- IVF & Reproductive Medicine at Ferticity IVF & Fertility Clinics, highlights the importance of having a proactive approach. “Fertility issues may not always show obvious alarming symptoms, but there are subtle signs you mustn’t ignore,” she says.

 

When should you start paying attention?

 

It’s not true that problems of fertility come with ageing, it largely depends on your overall well-being and how well you are taking care of your sexual health and fertility. The question is how to know it’s time to get into the details.

 

Dr. Bajaj explains it in the easiest way possible:

● Irregular period cycle: A disturbed menstrual cycle is not only inconvenient but also a sign that hormones might not be in balance. This often disrupts ovulation, making it harder to conceive.

● Severe pain during menstruation: Intense cramps and abdominal pain that make it difficult to carry on with daily routine is also a big alarming sign that something is off with your sexual health and fertility. It's important to consult a doctor if this happens regularly.

● Problems in conceiving: If you’ve been trying for a year (or six months if you’re over 35) without success, consulting a fertility doctor is necessary.  

● Multiple miscarriages: Experiencing recurrent miscarriages is emotionally draining, and exhausting and indicates an underlying condition that needs attention and care.

● Other health clues: Female fertility issues like PCOS, endometriosis, or even unexplained weight gain can quietly impact your fertility.

 

Dr. Bajaj emphasizes, “Both partners need to be involved. Fertility issues are not limited to women. Men can go through issues like low sperm count or motility issues, which we can address with the right guidance.”

 

Why does early detection matter a lot?

 

Addressing fertility concerns early doesn’t just improve the chances of successful treatment—it saves time, and emotional energy, and opens up more options.

“Every couple’s situation is different and requires a personalized treatment plan,” says Dr. Bajaj. “The sooner we find out the root of the problem, the more tailored and effective our approach can be.”

Ferticity IVF and Fertility Clinics blend comprehensive care with advanced procedures such as IVF (in-vitro fertilization) and ICSI (Intracytoplasmic Sperm Injection) to make it possible for couples to achieve a pregnancy.

 

What can you do to better manage fertility issues?

 

Making the right lifestyle changes also greatly influences your fertility and overall health. Following a nutritious, balanced diet balances hormones, while a regular exercise routine helps with healthy body weight, which is crucial in fertility. Giving up smoking and limiting alcohol improves both egg and sperm quality. Another important aspect is stress management given the fast pace of life these days. Continuous high-stress levels affect ovulation and sperm health. Baby steps like these create a huge impact.

 

It’s never too early to get medical help

 

One of the biggest misconceptions about fertility is that you need to wait until you’re actively trying to conceive to see a specialist. Dr Pooja Bajaj Wadhwa encourages couples to be proactive. “If you feel something is off or have concerns, don’t ignore them. Fertility is time-sensitive, but it’s also filled with possibilities.”

 

Parenthood is a wholesome experience, and you don’t have to go through the challenges alone. Dr. Bajaj along with her team at Ferticity IVF & Fertility Clinics extends expert care and support to such couples wanting to consider advanced reproductive techniques and explore their chances of pregnancy.

13-Year-Old Martial Arts Sensation Basil Punathil Shines on the Global Stage.

Basil Punathil, a 13-year-old martial arts prodigy, is quickly becoming a household name in the world of sports. Born on February 1, 2011, in Kozhikode, Kerala, Basil’s journey has been nothing short of inspiring. With an impressive list of achievements under his belt at such a young age, he is setting benchmarks and inspiring young athletes across the globe. Supported by a loving and encouraging family, Basil has been able to balance his academics and martial arts training with remarkable discipline. Currently studying in the 8th grade at St. Paul’s High School in Bangalore, he is proving that dedication and hard work can yield extraordinary results.

Basil’s versatility in martial arts is what sets him apart. He has trained in a variety of disciplines, including boxing, kickboxing, Muay Thai, wrestling, jujitsu, Brazilian Jiu-Jitsu (BJJ), and mixed martial arts (MMA). This diverse skill set allows him to excel in both national and international competitions, showcasing his adaptability and commitment to mastering multiple techniques. His rigorous training and focus have earned him accolades that most athletes can only dream of.

Among his notable accomplishments, Basil’s gold medal at the GAMMA World Championship 2024 in the Under-14 category stands out as a crowning achievement. This victory established him as an international champion and highlighted his determination and talent. In addition to his global success, Basil is also the National MMA Champion in the Under-14 category, further solidifying his dominance in the sport. His prowess is not limited to MMA, as he has also claimed the state championship title in Jiu-Jitsu, demonstrating his technical expertise and versatility.

Basil’s athletic achievements extend beyond combat sports. On October 31, 2021, he set a record recognized by the Indian Book of Records for the longest duration holding the abdominal plank position by a child. With an astonishing time of 2 hours, 34 minutes, and 40 seconds, Basil displayed incredible physical endurance and mental strength. This achievement, accomplished at Ezone Lagoon Resort in Bengaluru, is a testament to his unyielding determination and focus.

The driving force behind Basil’s success is his father and coach, Abdulmuneer, fondly known as Cutman Muneer. A passionate and experienced trainer, Abdulmuneer has been instrumental in shaping Basil’s martial arts career. Under his guidance, Basil has developed the discipline and skills necessary to excel at the highest level. He got his training at Body Force Fight Club. His mother, Nimshida, and sister, Mishamariyam, also play vital roles in providing Basil with a supportive environment that allows him to pursue his dreams.

While martial arts remain his primary focus, Basil is a multi-talented individual with diverse interests. He has a keen fascination with robotics and artificial intelligence, showcasing his curiosity and drive to learn beyond the ring. These interests reflect his well-rounded personality and his determination to excel in various fields.

Basil’s ambitions extend far beyond his current achievements. He aspires to become a world champion in MMA and aims to inspire a new generation of Indian fighters. With his hard work, passion, and dedication, Basil is well on his way to achieving his goals and making a significant impact on the global martial arts stage. His journey serves as a beacon of hope and motivation for aspiring athletes, proving that age is no barrier to success.

For those who want to follow Basil’s incredible journey, his achievements and updates are regularly shared on his social media platforms. Fans and supporters can connect with him on Instagram at and Facebook to stay updated on his progress. His journey has already inspired many, and he continues to motivate young athletes through his accomplishments.

To connect with Basil or his team, please email at With his impressive track record and unwavering dedication, Basil Punathil is undoubtedly a name to watch in the world of martial arts. His journey is just beginning, and the future looks exceptionally bright for this young champion.

जॉर्ज सोरोस को मिला अमेरिका का सर्वोच्च सम्मान प्रेसिडेंशियल मेडल ऑफ फ्रीडम, मच गया हंगामा
#george_soros_awarded_americas_highest_civilian_honor
जॉर्ज सोरोस की हाल के दिनों में भारत में भी खूब चर्चा होती रही है। उन पर भारतीय राजनीति को प्रभावित करने के आरोप लगे हैं। अब अमेरिका ने इस विवादित अमेरिकी बिजनैसमेन जॉर्ज सोरोस को सर्वोच्च अमेरिकी नागरिक सम्मान (प्रेसिडेंशियल मेडल ऑफ फ्रीडम) से सम्मानित किया है। इसे लेकर पूरी दुनिया में चर्चा है। खुद अमेरिका में ही सोरोस को यह सम्मान दिए जाने के पक्ष-विपक्ष में कई आवाजें बुलंद हैं। दुनिया के सबसे अमीर शख्स एलन मस्क ने भी जॉर्ज सोरोस को यह सम्मान दिए जाने के फैसले को हास्यास्पद करार दिया है।

अमेरिका के राष्ट्रपति बाइडन ने जॉर्ज सोरोस और पूर्व अमेरिकी विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन समेत 19 लोगों को शनिवार को देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान से नवाजा है। हालांकि, इनमें से किसी को भी मेडल ऑफ फ्रीडम दिए जाने को लेकर इतना हंगामा नहीं हुआ है, जितना जॉर्ज सोरोस के नाम को लेकर बातें चल रही हैं। व्हाइट हाउस के बयान के मुताबिक, सोरोस की उनकी दानकर्ता संस्था ओपन सोसाइटी फाउंडेशन ने दुनियाभर में लोकतंत्र को मजबूत करने के अलावा मानवाधिकार, शिक्षा और सामाजिक न्याय के लिए काम किया है।

*सोरोस को सम्मान दिए जाने को मस्क ने कहा शर्मनाक*
सोरोस को फ्रीडम मेडल मिलने पर टेस्ला के मालिक एलन मस्क ने भी प्रतिक्रिया दी है। जो बाइडन के विरोधी और रिपब्ल्कन नेता डोनाल्ड ट्रंप के समर्थक एलन मस्क ने एक पॉडकास्ट में इस सोरोस को इस सम्मान को दिए जाने को शर्मनाक बताते हुए कहा कि सोरोस मानवता से घृणा करते हैं। मस्क ने ट्विटर पर एक पोस्ट में सोरोस की तुलना स्टार वार्स के खलनायक डार्थ सिडियस से भी की है। उन्होंने लिखा, 'जॉर्ज सोरोस तो यहां काफी अच्छे लग रहे हैं। जरूर लाइटिंग अच्छी रही होगी।'

*रिपब्लिकन नेता भी फैसले से खुश नहीं*
सोरोस को सम्मान दिए जाने की रिपब्लिकन नेताओं ने भी निंदा की है। निक्की हेली ने इसे अमेरिका के मुंह पर एक तमाचा कहा है। उन्होंने बाइडन के पिछले फैसलों का हवाला देते हुए उन पर राष्ट्रीय मूल्यों के बजाय राजनीतिक एजेंडे को प्राथमिकता देने का आरोप लगाया। डोनाल्ड ट्रंप जूनियर ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो शेयर किया, जिसमें एक पिज्जा डिलीवरी करने वाले व्यक्ति ने पांच बच्चों को जलते हुए घर से बचाया था। उन्होंने लिखा, यह व्यक्ति प्रेसिडेंशियल मेडल ऑफ फ्रीडम का हकदार है, सोरोस नहीं।

*प्रधानमंत्री मोदी के विरोधी रहे हैं जॉर्ज सोरोस*
जॉर्ज सोरोस पर दुनिया के कई देशों की राजनीति और समाज को प्रभावित करने का एजेंडा चलाने का आरोप है। सोरोस की संस्था ‘ओपन सोसाइटी फाउंडेशन’ ने 1999 में पहली बार भारत में एंट्री की।
2014 में इसने भारत में दवा, न्याय व्यवस्था को बेहतर बनाने और विकलांग लोगों को मदद करने वाली संस्थाओं को फंड देना शुरू किया। 2016 में भारत सरकार ने देश में इस संस्था के जरिए होने वाली फंडिंग पर रोक लगा दी।
अगस्त 2023 में जॉर्ज का म्यूनिख सिक्योरिटी काउंसिल में दिया बयान बेहद चर्चा में रहा। जब उन्होंने कहा था कि भारत लोकतांत्रिक देश है, लेकिन प्रधानमंत्री मोदी लोकतांत्रिक नहीं हैं।

*सोरोस ने सीएए, 370 पर भी विवादित बयान दिए*
सोरोस ने भारत में नागरिकता संशोधन कानून यानी सीएए और कश्मीर से आर्टिकल 370 हटाए जाने पर भी पीएम मोदी पर निशाना साधा था। सोरोस ने दोनों मौकों पर कहा था कि भारत हिंदू राष्ट्र बनने की तरफ बढ़ रहा है। दोनों ही मौकों पर उनके बयान बेहद तल्ख थे।
जजों के रिश्तेदार नहीं बनेंगे जज? कॉलेजियम उठा सकता है बड़ा कदम, भाई-भतीजावाद वाली छवि को दुरुस्त करने की कोशिश

#collegium_may_take_action_relatives_of_judges_will_no_longer_become_high_court

सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम एक नए प्रस्ताव पर विचार कर रहा है। सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम में शामिल एक जज ने विचार पेश किया है कि हाई कोर्ट में उन लोगों की नियुक्तियाँ ना की जाएँ, जिनके रिश्तेदार पहले से हाई कोर्ट में जज हैं। इसके लिए इन हाई कोर्ट से ऐसे नाम ना भेजने को कहा जाएगा। रिश्तेदारों की जगह नए और पहली बार वकील बने लोगों को प्राथमिकता दिए जाने का विचार पेश किया गया है।इस प्रस्ताव के तहत, मौजूदा या पूर्व संवैधानिक न्यायालय के जजों के परिवार के सदस्यों को उच्च न्यायालय के जज के रूप में नियुक्त करने की सिफारिश फिलहाल रोकी जा सकती है।

सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस संजीव खन्‍ना की अध्‍यक्षता वाले कॉलेजियम ने हाल ही में हाईकोर्ट जज बनने के संभावित वकीलों व जूनियर जजों से बातचीत की। यह पहला मौका है जब हाईकोर्ट कॉलेजियम की सिफारिश वाले जजों व वकीलों से सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम द्वारा बातचीत की गई हो। इस दौरान एक वकील की तरफ से कॉलेजियम के सामने यह मांग रखी गई कि ऐसे वकीलों को जज बनाने की सिफारिश ना की जाए जिनके माता-पिता व रिश्‍तेदार पहले सुप्रीम कोर्ट या हाईकोर्ट में जज रह चुके हों। इस प्रस्‍ताव को कई अन्‍य वकीलों का भी समर्थन मिला। कॉलेजियम में सीजेआई के अलावा जस्टिस बी आर गवई, सूर्यकांत, हृषिकेश रॉय और ए एस ओका भी शामिल रहे।

पहली बार मुख्य न्यायाधीश और न्यायमूर्ति गवई और न्यायमूर्ति कांत वाले कॉलेजियम ने पहली बार हाई कोर्ट के कॉलेजियम द्वारा हाई कोर्ट के न्यायाधीश के रूप में नियुक्ति के लिए अनुशंसित वकीलों और न्यायिक अधिकारियों के साथ बातचीत शुरू की है, ताकि उनकी उपयुक्तता का परीक्षण किया जा सके और उनकी क्षमता और योग्यता का आकलन किया जा सके। शीर्ष तीन न्यायाधीशों ने इलाहाबाद, बॉम्बे और राजस्थान उच्च न्यायालयों के न्यायाधीशों के रूप में नियुक्ति के लिए अनुशंसित लोगों के साथ बातचीत की और 22 दिसंबर को केंद्र को उच्च न्यायालय के न्यायाधीशों के रूप में नियुक्ति के लिए योग्य समझे जाने वाले नामों को अग्रेषित किया।

इससे पहले, सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम केवल उच्च न्यायालय के कॉलेजियम द्वारा प्रस्तुत वकीलों और न्यायिक अधिकारियों के विस्तृत बायोडेटा, उनके पिछले जीवन पर खुफिया रिपोर्ट, साथ ही संबंधित राज्यपालों और सीएम की राय के आधार पर काम करता था।

अक्टूबर 2015 में, सुप्रीम कोर्ट की पांच-जजों की संवैधानिक पीठ ने राष्ट्रीय न्यायिक नियुक्ति आयोग (एनजेएसी) को रद्द कर दिया था। एनजेएसी को संसद द्वारा सर्वसम्मति से कॉलेजियम प्रणाली को बदलने के लिए लाया गया था। कॉलेजियम प्रणाली, हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट के जजों के चयन को नियंत्रित करती है। एनजेएसी को रद्द करने के बाद से सुप्रीम कोर्ट ने जजों के चयन की अपारदर्शी प्रक्रिया में कुछ पारदर्शिता लाने की कोशिश की है।

भारत ने बांग्लादेश को उसी की भाषा मे दिया जवाब, डिप्टी हाईकमिश्नर को किया तलब

-#india_called_deputy_high_commissioner_of_bangladesh

भारत और बांग्लादेश के बीच संबंधों में तनाव बढ़ता जा रहा है। भारतीय विदेश मंत्रालय ने बदलती परिस्थितियों पर चर्चा के लिए बांग्लादेश के उप-उच्चायुक्त नुरल इस्लाम को तलब किया। एक दिन पहले रविवार को बांग्लादेश ने ढाका में तैनात भारतीय उच्चायुक्त प्रणय वर्मा को तलब किया था। विवाद की ताजा वजह सीमा पर बाड़ लगाने का भारत की कोशिशें हैं। बांग्लादेश का आरोप है कि भारत 4,156 किलोमीटर लंबी भारत-बांग्लादेश सीमा पर पांच जगहों पर बाड़ लगाने की कोशिश कर रहा है। उसका दावा है कि यह द्विपक्षीय समझौते का उल्लंघन है।

बांग्लादेशी घुसपैठियों को रोकने के लिए भारतीय सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) ने सुरक्षा को सख्त कर दिया है। बॉर्डर एरिया पर बीएसएफ की पैनी नजर है जिसके चलते बांग्लादेश की मोहम्मद यूनुस की सरकार बौखला गई है। बांग्लादेश के विदेश मंत्रालय ने रविवार को भारतीय उच्चायुक्त प्रणय वर्मा को तलब किया था और सीमा पर भारत की गतिविधियों पर चिंता जताई थी। सोमवार को भारतीय विदेश मंत्रालय ने भी नई दिल्ली में मौजूद बांग्लादेश के उप उच्चायुक्त नूरुल इस्लाम को तलब किया है।

बांग्लादेश की सरकारी समाचार एजेंसी बीएसएस के अनुसार, रविवार को विदेश सचिव जशीम उद्दीन के साथ प्रणय वर्मा की बैठक लगभग 45 मिनट तक चली थी। एक अधिकारी ने कहा, 'ढाका और नई दिल्ली के बीच सुरक्षा के लिए सीमा पर बाड़ लगाने को लेकर समझौता है। हमारे दोनों सीमा सुरक्षा बल – बीएसएफ और बीजीबी (सीमा सुरक्षा बल और बॉर्डर गार्ड बांग्लादेश) इस संबंध में बातचीत कर रहे हैं। हमें उम्मीद है कि इस समझौते को लागू किया जाएगा और सीमा पर अपराधों से निपटने के लिए एक सहयोगात्मक दृष्टिकोण अपनाया जाएगा।

भारत और बांग्लादेश के बीच 4,156 किलोमीटर का बॉर्डर है। इसमें से 3271 किलोमीटर एरिया में भारत ने फेंसिंग कर दी है। 885 किलोमीटर बॉर्डर पर अभी फेंसिंग का काम चल रहा है। पीटीआई की रिपोर्ट के मुताबिक, भारत ने 2010 से लेकर 2023 तक 160 जगहों पर फेंसिंग का काम किया था। 10 जनवरी से BSF ने फिर से यह काम शुरू किया। इनमें से 5 जगहों चपैनवाबगंज, लालमोनिरहाट में तीन बीघा कॉरिडोर, नौगांव में पटनीताला, फेनी, कुश्तिया और कुमिला में फेंसिंग को लेकर विवाद है।

*कैग रिपोर्ट में देरी होने पर हाई कोर्ट ने दिल्ली सरकार को फटकारा, कहा- आपकी ईमानदारी पर संदेह

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दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले आई कैग रिपोर्ट का मुद्दा दिल्ली हाईकोर्ट पहुंच गया है। 7 भाजपा विधायकों ने कैग की रिपोर्ट पर विधानसभा में चर्चा करवाने की याचिका दिल्ली हाईकोर्ट में लगाई थी, जिस पर सोमवार को कोर्ट ने दिल्ली सरकार को फटकार लगाई। दिल्ली हाईकोर्ट ने कैग रिपोर्ट पर विचार करने में देरी के लिए दिल्ली सरकार को फटकार लगाते हुए कहा कि जिस तरह से आपने अपने कदम पीछे खींचे हैं, उससे आपकी ईमानदारी पर संदेह पैदा होता है।

हाईकोर्टकी नाराजगी की वजह

कोर्ट ने विजेंदर गुप्ता सहित भारतीय जनता पार्टी के विधायकों की ओर से दायर याचिका पर हाई कोर्ट ने जोर देते हुए कहा, “आपको रिपोर्ट को तुरंत स्पीकर के पास भेजना चाहिए था और सदन में बहस शुरू करवानी चाहिए थी। दरअसल, दिल्‍ली सरकार की यह जिम्‍मेदारी थी कि इस रिपोर्ट को विधानसभा में पेश किया जाता, लेकिन आम आदमी पार्टी की सरकार ने ऐसा नहीं किया। यही वजह है कि हाईकोर्ट ने सरकार के इस रवैये पर नाराजगी जाहिर की।

आपका टालमटोल बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण-हाई कोर्ट

दिल्ली हाईकोर्ट ने सरकार से कहा कि आप जिस तरह से टालमटोल कर रहे हैं, वह दुर्भाग्यपूर्ण है। आपको कैग रिपोर्ट को विधानसभा स्पीकर के पास भेजने और विधानसभा में चर्चा करने में तत्पर होना चाहिए था।

कैग रिपोर्ट में किया गया दावा

सीएजी रिपोर्ट में यह दावा किया गया है कि पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल ने सिविल लाइंस स्थित सरकारी आवास के रिनोवेशन पर 33.66 करोड़ रुपये खर्च किए थे। लागत से 342 प्रतिशत ज्‍यादा रकम इस काम के लिए खर्च की गई। रिपोर्ट में कहा गया कि अरविंद केजरीवाल के घर के रिनोवेशन का काम 8.62 करोड़ रुपये की निविदा पर किया जाना था। इसकी अनुमानित लागत 7.61 करोड़ तय की गई थी। शुरुआत में ही यह 13.21 प्रतिशत ज्‍यादा थी। जब अरविंद केजरीवाल के घर का काम खत्‍म हुआ तो यह अनुमानित लागत से 342.31 प्रतिशत ज्‍यादा था। यह रकम निविदा राशि से 290.49 प्रतिशत अधिक पाई गई।

बांग्लादेश ने भारतीय उच्चायुक्त को क्यों किया तलब, भारत के साथ नया विवाद

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भारत-बांग्लादेश के बीच सबकुछ सही नहीं चल रहा है। शेख हसीना के तख्तापल के बाद बांग्लादेश में नोबेल शांति पुरस्कार विजेता मो. यूनुस की अंतरिम सरकार बनी। यूनुस के सत्ता आने के बाद से बांग्लादेश में भारत विरोधी लहर बनी हुई है। इस बीच रविवार को बांग्लादेश के विदेश मंत्रालय ने भारत के उच्चायुक्त प्रणय वर्मा को तलब किया है, यह कदम दोनों देशों के बीच सीमा तनाव के बढ़ने के बीच उठाया गया है।

सरकारी समाचार एजेंसी 'बीएसएस' ने पहले अपनी खबर में बताया था कि प्रणय वर्मा को विदेश मंत्रालय ने सीमा पर बढ़ते तनाव पर चर्चा करने के लिए ''तलब'' किया था। विदेश मंत्रालय द्वारा जारी प्रेस वक्तव्य में हालांकि इस शब्द का इस्तेमाल नहीं किया गया।

विदेश मंत्रालय ने बयान में कहा, ''विदेश सचिव राजदूत मोहम्मद जशीम उद्दीन ने आज विदेश मंत्रालय स्थित अपने कार्यालय में भारत के उच्चायुक्त प्रणय वर्मा के समक्ष बांग्लादेश-भारत सीमा पर भारतीय सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) की हाल की गतिविधियों को लेकर बांग्लादेश सरकार की ओर से गहरी चिंता जताई।'' बीएसएस की खबर के अनुसार वर्मा लगभग तीन बजे (स्थानीय समयानुसार) विदेश मंत्रालय पहुंचे। विदेश सचिव के साथ उनकी मुलाकात लगभग 45 मिनट तक चली।

भारतीय उच्चायुक्त प्रणय वर्मा ने बैठक के बाद मीडिया से कहा, ''मैंने विदेश सचिव से मुलाकात कर अपराध मुक्त सीमा सुनिश्चित करने, तस्करी, अपराधियों की आवाजाही और मानव तस्करी की चुनौतियों से प्रभावी तरीके से निपटने संबंधी भारत की प्रतिबद्धता पर चर्चा की।'' उन्होंने कहा, ''सुरक्षा के लिए सीमा पर बाड़ लगाने के संबंध में हमारे बीच आपसी सहमति है। इस संबंध में बीएसएफ और बीजीबी (सीमा सुरक्षा बल और बॉर्डर गार्ड बांग्लादेश) के बीच बातचीत जारी है। हम उम्मीद करते हैं कि आपसी सहमति को लागू किया जायेगा और अपराध से निपटने के लिए सहयोगपूर्ण दृष्टिकोण अपनाया जायेगा।''

बांग्लादेश-भारत सीमा पर बाड़े के निर्माण को लेकर दोनों देशों में विवाद उपजा है। भारत उस पार से लगातार हो रहे घुसपैठ को रोकने के लिए सीमा पर बाड़ का बना रहा है, लेकिन न केवल सीमा पर बने गांव बल्कि बांग्लादेशी सरकार की तरफ से तीखी प्रतिक्रिया आई है।

भारत-बांग्लादेश के रिश्तों में खटास साफ नजर आ रही है। रिश्तों की ये खटास शेख हसीना के सत्ता से बेदखल होने के बाद से उपजी है। पिछले साल 5 अगस्त को बांग्लादेश से पदस्थापित होने के बाद से पूर्व पीएम शेख हसीना भारत में रह रही हैं। उनके बाद बांग्लादेश में मोहम्मद यूनुस की अंतरिम सरकार बनी। यूनुस के सत्ता आने के बाद से बांग्लादेश में भारत विरोधी लहर बनी हुई है।

"World’s Biggest Gujarati Food Festival 2025 Opens to a Grand Start with 13,000+ footfall on day one!"

Mumbai, 12th Jan 2025: The inaugural day of the world's largest Gujarati Food Festival 2025, held at Kora Kendra Ground, Borivali West, Mumbai, on January 10, was a massive success. With over 13,000 enthusiastic attendees, the festival kicked off on a grand note, celebrating Gujarat's rich culinary and cultural heritage. Supported by Gujarat Tourism, the event promises an authentic experience for food lovers and culture enthusiasts alike.

Organized by R Mind Events, now in its fourth season, the Gujarati Food Festival has become a beloved tradition. The event spans three exciting days, from January 10 to 12, offering an immersive journey through Gujarat's vibrant flavors and traditions. Founder Yukkit Vora,Tushar Dixit and Kaushal Aacharya visionary with 20 years of experience, emphasized the festival's mission to showcase the depth and diversity of Gujarati cuisine while dispelling the myth that it is only sweet. The menu boasts iconic dishes such as Umbariyo, Locho, Malai Gola, Walyas Goti Soda, and more, offering a perfect blend of sweet, salty, sour, and spicy flavors.

The festival was inaugurated by the Chief Guest, Shri Gopal Shetty ji, a respected leader celebrated for his contributions to Borivali's development. Other notable attendees included Bhavesh Kothari ji, Vibha Narshana, and Rajveer Singh, a prominent content creator with 1.7 million followers who was accompanied by aspiring photographer Roshan Kamble. 

The cultural program was equally enthralling. Renowned Gujarati singer Sunil Soni captivated the audience with his lively performances, while anchor Kkomal Shah ensured the energy remained high throughout the day. Folk music and dance performances added a traditional touch, creating an atmosphere of joy and celebration.

The Gujarati Food Festival, supported by Gujarat Tourism, underscores the growing appeal of food tourism and the importance of preserving culinary heritage. By celebrating Gujarat's diverse flavors and cultural expressions, the event serves as a gateway to the soul of the state. 

With last day on 12th Jan 2025, visitors can look forward to even more gastronomic delights, cultural performances, and unforgettable memories. Don’t miss this opportunity to savor the true essence of Gujarat at Kora Kendra Ground, Borivali, Mumbai.

For reservations, contact +91 91045 56789 or visit on Instagram 

For media coverage this platform, reach out at +917710030004.

**"Chilli and Acidity: The Fiery Truth Behind Spicy Reactions"**

Overview of Chilli Acidity

Chillies are known for their fiery heat, but they also have a certain level of acidity that can impact digestion and health. While chillies themselves are not highly acidic compared to citrus fruits or vinegar, they can still cause acidity-related discomfort in some people due to their capsaicin content.

Causes and Symptoms of Chilli-Induced Acidity

Capsaicin Irritation: The active compound in chillies, capsaicin, can irritate the stomach lining and trigger excess acid production.

Heartburn: A burning sensation in the chest, especially after eating spicy foods.

Why Choose Homeopathy for Chilli-Induced Acidity?

Homeopathy offers a natural and holistic approach to managing acidity caused by chillies. Instead of merely suppressing symptoms, homeopathic remedies aim to restore balance in the digestive system and strengthen the body's ability to handle spicy foods without discomfort.

Spiritual Homeopathy Clinic in Madhapur, Hyderabad, is available at 194, Road Number 1, MIG No 1, KPHB Phase 1, Kukatpally, Hyderabad, Telangana 500072.

CityWity

You can contact them at +91-9030176176. 

Dipnock: Innovating Business Growth Through Next-Generation Software

In a world where technological advancements define success, businesses are increasingly seeking innovative solutions to stay competitive. DIPNOCK, a prominent software development company, has steadily gained recognition for delivering customized solutions and driving digital transformation.

A Journey of Innovation

DIPNOCK began its journey by developing visitor management systems and real estate management software. Over time, it expanded its expertise to cater to a wide range of industries, emphasizing innovation, automation, and artificial intelligence (AI). In the past year alone, the company successfully delivered solutions to 13 clients, showcasing its ability to address diverse business challenges with precision and excellence.

Visionary Leadership

The operational and strategic growth of DIPNOCK is driven by its founder, Tinku Krishnan, a visionary leader committed to transforming businesses through technology. Under his guidance, the organization has established a dedicated Research and Development (R&D) team specializing in AI-driven automation. This team focuses on integrating AI to streamline operations, enhance efficiency, and unlock new opportunities for businesses.

Global Reach

DIPNOCK operates with a head office in Sharjah, UAE, and software development teams based in Sharjah and Bangalore, India. This dual presence enables the company to combine global reach with local expertise, ensuring agile and effective delivery of tailored solutions.

Focus on Artificial Intelligence

DIPNOCK's emphasis on AI and automation positions it as a leader in helping businesses adapt to an ever-evolving technological landscape. Its R&D team is at the forefront of leveraging AI to develop advanced solutions that enable businesses to streamline processes, improve efficiency, and stay ahead of the competition.

A Commitment to Exceed Expectations

According to Tinku Krishnan, businesses today require more than just conventional solutions—they need forward-thinking strategies that address immediate challenges while anticipating future demands. As he states, “The goal is to help businesses exceed their expectations by leveraging cutting-edge technologies and robust infrastructure.”

Why Businesses Choose DIPNOCK

Customized Solutions: Software tailored to specific business needs.

AI and Automation: Focus on integrating advanced technologies to enhance efficiency.

Experienced R&D Team: Dedicated to innovation and pushing technological boundaries.

Global Presence: Operations in the UAE and India for seamless collaboration.

A Partner for Transformation

For businesses planning to upgrade their operations, DIPNOCK provides solutions designed to go beyond expectations. With its expertise in innovation and advanced technologies, DIPNOCK is transforming businesses into future-ready enterprises.

This article highlights the impact DIPNOCK is making in the world of customized software development, innovation, and AI-driven automation. Organizations looking to navigate the complexities of digital transformation would benefit greatly from aligning with DIPNOCK’s vision and expertise.

Discover how DIPNOCK can transform your business:

Visit website: https://dipnock.com/

Contact:

How to recognize fertility issues early advice from experts.

  

Fertility issues have been on the rise and are something that is coming out for open discussion. However, there are still several couples and individuals who hesitate when it comes to visiting a fertility doctor. 

Being aware enough to pay close attention to the early signs of fertility issues makes it a lot easier to deal with and eventually get rid of them (if medically possible). Timely medical intervention is the safest way out and there.  

 

Dr Pooja Bajaj Wadhwa, Senior Consultant- IVF & Reproductive Medicine at Ferticity IVF & Fertility Clinics, highlights the importance of having a proactive approach. “Fertility issues may not always show obvious alarming symptoms, but there are subtle signs you mustn’t ignore,” she says.

 

When should you start paying attention?

 

It’s not true that problems of fertility come with ageing, it largely depends on your overall well-being and how well you are taking care of your sexual health and fertility. The question is how to know it’s time to get into the details.

 

Dr. Bajaj explains it in the easiest way possible:

● Irregular period cycle: A disturbed menstrual cycle is not only inconvenient but also a sign that hormones might not be in balance. This often disrupts ovulation, making it harder to conceive.

● Severe pain during menstruation: Intense cramps and abdominal pain that make it difficult to carry on with daily routine is also a big alarming sign that something is off with your sexual health and fertility. It's important to consult a doctor if this happens regularly.

● Problems in conceiving: If you’ve been trying for a year (or six months if you’re over 35) without success, consulting a fertility doctor is necessary.  

● Multiple miscarriages: Experiencing recurrent miscarriages is emotionally draining, and exhausting and indicates an underlying condition that needs attention and care.

● Other health clues: Female fertility issues like PCOS, endometriosis, or even unexplained weight gain can quietly impact your fertility.

 

Dr. Bajaj emphasizes, “Both partners need to be involved. Fertility issues are not limited to women. Men can go through issues like low sperm count or motility issues, which we can address with the right guidance.”

 

Why does early detection matter a lot?

 

Addressing fertility concerns early doesn’t just improve the chances of successful treatment—it saves time, and emotional energy, and opens up more options.

“Every couple’s situation is different and requires a personalized treatment plan,” says Dr. Bajaj. “The sooner we find out the root of the problem, the more tailored and effective our approach can be.”

Ferticity IVF and Fertility Clinics blend comprehensive care with advanced procedures such as IVF (in-vitro fertilization) and ICSI (Intracytoplasmic Sperm Injection) to make it possible for couples to achieve a pregnancy.

 

What can you do to better manage fertility issues?

 

Making the right lifestyle changes also greatly influences your fertility and overall health. Following a nutritious, balanced diet balances hormones, while a regular exercise routine helps with healthy body weight, which is crucial in fertility. Giving up smoking and limiting alcohol improves both egg and sperm quality. Another important aspect is stress management given the fast pace of life these days. Continuous high-stress levels affect ovulation and sperm health. Baby steps like these create a huge impact.

 

It’s never too early to get medical help

 

One of the biggest misconceptions about fertility is that you need to wait until you’re actively trying to conceive to see a specialist. Dr Pooja Bajaj Wadhwa encourages couples to be proactive. “If you feel something is off or have concerns, don’t ignore them. Fertility is time-sensitive, but it’s also filled with possibilities.”

 

Parenthood is a wholesome experience, and you don’t have to go through the challenges alone. Dr. Bajaj along with her team at Ferticity IVF & Fertility Clinics extends expert care and support to such couples wanting to consider advanced reproductive techniques and explore their chances of pregnancy.

13-Year-Old Martial Arts Sensation Basil Punathil Shines on the Global Stage.

Basil Punathil, a 13-year-old martial arts prodigy, is quickly becoming a household name in the world of sports. Born on February 1, 2011, in Kozhikode, Kerala, Basil’s journey has been nothing short of inspiring. With an impressive list of achievements under his belt at such a young age, he is setting benchmarks and inspiring young athletes across the globe. Supported by a loving and encouraging family, Basil has been able to balance his academics and martial arts training with remarkable discipline. Currently studying in the 8th grade at St. Paul’s High School in Bangalore, he is proving that dedication and hard work can yield extraordinary results.

Basil’s versatility in martial arts is what sets him apart. He has trained in a variety of disciplines, including boxing, kickboxing, Muay Thai, wrestling, jujitsu, Brazilian Jiu-Jitsu (BJJ), and mixed martial arts (MMA). This diverse skill set allows him to excel in both national and international competitions, showcasing his adaptability and commitment to mastering multiple techniques. His rigorous training and focus have earned him accolades that most athletes can only dream of.

Among his notable accomplishments, Basil’s gold medal at the GAMMA World Championship 2024 in the Under-14 category stands out as a crowning achievement. This victory established him as an international champion and highlighted his determination and talent. In addition to his global success, Basil is also the National MMA Champion in the Under-14 category, further solidifying his dominance in the sport. His prowess is not limited to MMA, as he has also claimed the state championship title in Jiu-Jitsu, demonstrating his technical expertise and versatility.

Basil’s athletic achievements extend beyond combat sports. On October 31, 2021, he set a record recognized by the Indian Book of Records for the longest duration holding the abdominal plank position by a child. With an astonishing time of 2 hours, 34 minutes, and 40 seconds, Basil displayed incredible physical endurance and mental strength. This achievement, accomplished at Ezone Lagoon Resort in Bengaluru, is a testament to his unyielding determination and focus.

The driving force behind Basil’s success is his father and coach, Abdulmuneer, fondly known as Cutman Muneer. A passionate and experienced trainer, Abdulmuneer has been instrumental in shaping Basil’s martial arts career. Under his guidance, Basil has developed the discipline and skills necessary to excel at the highest level. He got his training at Body Force Fight Club. His mother, Nimshida, and sister, Mishamariyam, also play vital roles in providing Basil with a supportive environment that allows him to pursue his dreams.

While martial arts remain his primary focus, Basil is a multi-talented individual with diverse interests. He has a keen fascination with robotics and artificial intelligence, showcasing his curiosity and drive to learn beyond the ring. These interests reflect his well-rounded personality and his determination to excel in various fields.

Basil’s ambitions extend far beyond his current achievements. He aspires to become a world champion in MMA and aims to inspire a new generation of Indian fighters. With his hard work, passion, and dedication, Basil is well on his way to achieving his goals and making a significant impact on the global martial arts stage. His journey serves as a beacon of hope and motivation for aspiring athletes, proving that age is no barrier to success.

For those who want to follow Basil’s incredible journey, his achievements and updates are regularly shared on his social media platforms. Fans and supporters can connect with him on Instagram at and Facebook to stay updated on his progress. His journey has already inspired many, and he continues to motivate young athletes through his accomplishments.

To connect with Basil or his team, please email at With his impressive track record and unwavering dedication, Basil Punathil is undoubtedly a name to watch in the world of martial arts. His journey is just beginning, and the future looks exceptionally bright for this young champion.

जॉर्ज सोरोस को मिला अमेरिका का सर्वोच्च सम्मान प्रेसिडेंशियल मेडल ऑफ फ्रीडम, मच गया हंगामा
#george_soros_awarded_americas_highest_civilian_honor
जॉर्ज सोरोस की हाल के दिनों में भारत में भी खूब चर्चा होती रही है। उन पर भारतीय राजनीति को प्रभावित करने के आरोप लगे हैं। अब अमेरिका ने इस विवादित अमेरिकी बिजनैसमेन जॉर्ज सोरोस को सर्वोच्च अमेरिकी नागरिक सम्मान (प्रेसिडेंशियल मेडल ऑफ फ्रीडम) से सम्मानित किया है। इसे लेकर पूरी दुनिया में चर्चा है। खुद अमेरिका में ही सोरोस को यह सम्मान दिए जाने के पक्ष-विपक्ष में कई आवाजें बुलंद हैं। दुनिया के सबसे अमीर शख्स एलन मस्क ने भी जॉर्ज सोरोस को यह सम्मान दिए जाने के फैसले को हास्यास्पद करार दिया है।

अमेरिका के राष्ट्रपति बाइडन ने जॉर्ज सोरोस और पूर्व अमेरिकी विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन समेत 19 लोगों को शनिवार को देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान से नवाजा है। हालांकि, इनमें से किसी को भी मेडल ऑफ फ्रीडम दिए जाने को लेकर इतना हंगामा नहीं हुआ है, जितना जॉर्ज सोरोस के नाम को लेकर बातें चल रही हैं। व्हाइट हाउस के बयान के मुताबिक, सोरोस की उनकी दानकर्ता संस्था ओपन सोसाइटी फाउंडेशन ने दुनियाभर में लोकतंत्र को मजबूत करने के अलावा मानवाधिकार, शिक्षा और सामाजिक न्याय के लिए काम किया है।

*सोरोस को सम्मान दिए जाने को मस्क ने कहा शर्मनाक*
सोरोस को फ्रीडम मेडल मिलने पर टेस्ला के मालिक एलन मस्क ने भी प्रतिक्रिया दी है। जो बाइडन के विरोधी और रिपब्ल्कन नेता डोनाल्ड ट्रंप के समर्थक एलन मस्क ने एक पॉडकास्ट में इस सोरोस को इस सम्मान को दिए जाने को शर्मनाक बताते हुए कहा कि सोरोस मानवता से घृणा करते हैं। मस्क ने ट्विटर पर एक पोस्ट में सोरोस की तुलना स्टार वार्स के खलनायक डार्थ सिडियस से भी की है। उन्होंने लिखा, 'जॉर्ज सोरोस तो यहां काफी अच्छे लग रहे हैं। जरूर लाइटिंग अच्छी रही होगी।'

*रिपब्लिकन नेता भी फैसले से खुश नहीं*
सोरोस को सम्मान दिए जाने की रिपब्लिकन नेताओं ने भी निंदा की है। निक्की हेली ने इसे अमेरिका के मुंह पर एक तमाचा कहा है। उन्होंने बाइडन के पिछले फैसलों का हवाला देते हुए उन पर राष्ट्रीय मूल्यों के बजाय राजनीतिक एजेंडे को प्राथमिकता देने का आरोप लगाया। डोनाल्ड ट्रंप जूनियर ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो शेयर किया, जिसमें एक पिज्जा डिलीवरी करने वाले व्यक्ति ने पांच बच्चों को जलते हुए घर से बचाया था। उन्होंने लिखा, यह व्यक्ति प्रेसिडेंशियल मेडल ऑफ फ्रीडम का हकदार है, सोरोस नहीं।

*प्रधानमंत्री मोदी के विरोधी रहे हैं जॉर्ज सोरोस*
जॉर्ज सोरोस पर दुनिया के कई देशों की राजनीति और समाज को प्रभावित करने का एजेंडा चलाने का आरोप है। सोरोस की संस्था ‘ओपन सोसाइटी फाउंडेशन’ ने 1999 में पहली बार भारत में एंट्री की।
2014 में इसने भारत में दवा, न्याय व्यवस्था को बेहतर बनाने और विकलांग लोगों को मदद करने वाली संस्थाओं को फंड देना शुरू किया। 2016 में भारत सरकार ने देश में इस संस्था के जरिए होने वाली फंडिंग पर रोक लगा दी।
अगस्त 2023 में जॉर्ज का म्यूनिख सिक्योरिटी काउंसिल में दिया बयान बेहद चर्चा में रहा। जब उन्होंने कहा था कि भारत लोकतांत्रिक देश है, लेकिन प्रधानमंत्री मोदी लोकतांत्रिक नहीं हैं।

*सोरोस ने सीएए, 370 पर भी विवादित बयान दिए*
सोरोस ने भारत में नागरिकता संशोधन कानून यानी सीएए और कश्मीर से आर्टिकल 370 हटाए जाने पर भी पीएम मोदी पर निशाना साधा था। सोरोस ने दोनों मौकों पर कहा था कि भारत हिंदू राष्ट्र बनने की तरफ बढ़ रहा है। दोनों ही मौकों पर उनके बयान बेहद तल्ख थे।
जजों के रिश्तेदार नहीं बनेंगे जज? कॉलेजियम उठा सकता है बड़ा कदम, भाई-भतीजावाद वाली छवि को दुरुस्त करने की कोशिश

#collegium_may_take_action_relatives_of_judges_will_no_longer_become_high_court

सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम एक नए प्रस्ताव पर विचार कर रहा है। सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम में शामिल एक जज ने विचार पेश किया है कि हाई कोर्ट में उन लोगों की नियुक्तियाँ ना की जाएँ, जिनके रिश्तेदार पहले से हाई कोर्ट में जज हैं। इसके लिए इन हाई कोर्ट से ऐसे नाम ना भेजने को कहा जाएगा। रिश्तेदारों की जगह नए और पहली बार वकील बने लोगों को प्राथमिकता दिए जाने का विचार पेश किया गया है।इस प्रस्ताव के तहत, मौजूदा या पूर्व संवैधानिक न्यायालय के जजों के परिवार के सदस्यों को उच्च न्यायालय के जज के रूप में नियुक्त करने की सिफारिश फिलहाल रोकी जा सकती है।

सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस संजीव खन्‍ना की अध्‍यक्षता वाले कॉलेजियम ने हाल ही में हाईकोर्ट जज बनने के संभावित वकीलों व जूनियर जजों से बातचीत की। यह पहला मौका है जब हाईकोर्ट कॉलेजियम की सिफारिश वाले जजों व वकीलों से सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम द्वारा बातचीत की गई हो। इस दौरान एक वकील की तरफ से कॉलेजियम के सामने यह मांग रखी गई कि ऐसे वकीलों को जज बनाने की सिफारिश ना की जाए जिनके माता-पिता व रिश्‍तेदार पहले सुप्रीम कोर्ट या हाईकोर्ट में जज रह चुके हों। इस प्रस्‍ताव को कई अन्‍य वकीलों का भी समर्थन मिला। कॉलेजियम में सीजेआई के अलावा जस्टिस बी आर गवई, सूर्यकांत, हृषिकेश रॉय और ए एस ओका भी शामिल रहे।

पहली बार मुख्य न्यायाधीश और न्यायमूर्ति गवई और न्यायमूर्ति कांत वाले कॉलेजियम ने पहली बार हाई कोर्ट के कॉलेजियम द्वारा हाई कोर्ट के न्यायाधीश के रूप में नियुक्ति के लिए अनुशंसित वकीलों और न्यायिक अधिकारियों के साथ बातचीत शुरू की है, ताकि उनकी उपयुक्तता का परीक्षण किया जा सके और उनकी क्षमता और योग्यता का आकलन किया जा सके। शीर्ष तीन न्यायाधीशों ने इलाहाबाद, बॉम्बे और राजस्थान उच्च न्यायालयों के न्यायाधीशों के रूप में नियुक्ति के लिए अनुशंसित लोगों के साथ बातचीत की और 22 दिसंबर को केंद्र को उच्च न्यायालय के न्यायाधीशों के रूप में नियुक्ति के लिए योग्य समझे जाने वाले नामों को अग्रेषित किया।

इससे पहले, सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम केवल उच्च न्यायालय के कॉलेजियम द्वारा प्रस्तुत वकीलों और न्यायिक अधिकारियों के विस्तृत बायोडेटा, उनके पिछले जीवन पर खुफिया रिपोर्ट, साथ ही संबंधित राज्यपालों और सीएम की राय के आधार पर काम करता था।

अक्टूबर 2015 में, सुप्रीम कोर्ट की पांच-जजों की संवैधानिक पीठ ने राष्ट्रीय न्यायिक नियुक्ति आयोग (एनजेएसी) को रद्द कर दिया था। एनजेएसी को संसद द्वारा सर्वसम्मति से कॉलेजियम प्रणाली को बदलने के लिए लाया गया था। कॉलेजियम प्रणाली, हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट के जजों के चयन को नियंत्रित करती है। एनजेएसी को रद्द करने के बाद से सुप्रीम कोर्ट ने जजों के चयन की अपारदर्शी प्रक्रिया में कुछ पारदर्शिता लाने की कोशिश की है।