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ब्राह्मण और ठाकुर समाज का वोट नहीं चाहिए, इनको वोट देना तो मजबूरी है... कहने वाले यूपी के फिरोजाबाद के भाजपा नेता का कान पकड़कर उठक बैठक करते वी


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यूपी में निकाय चुनाव को लेकर सभी पार्टियों ने ताकत झोंक दी है। प्रत्याशी अपने-अपने तरीके से लोगों को प्रभावित करने में लगे हैं। ट्वीटर, फेसबुक और इंस्टाग्राम पर वीडियो वार भी चल रहा है। इस बीच भाजपा प्रत्याशी का एक वीडियो इतनी तेजी से वायरल हो गया कि अब उन्हें माफी मांगते हुए कान पकड़कर उठक बैठक करते हुए वीडियो जारी करना पड़ा है।

मामला फिरोजाबाद का है। यहां भाजपा के टिकट पर वार्ड संख्या 11 से चुनाव में ताल ठोक रहे योगेश शंखवार ने अति आत्मविश्वास में ऐसी बातें बोल दीं जिसका वीडियो तेजी से वायरल हो गया। इसमें वह कह रहे हैं कि उन्हें ब्राह्मण और ठाकुर समाज का वोट नहीं चाहिए। इन लोगों को वोट देना तो मजबूरी है...। 

शंखवार का वीडियो वायरल होने पर दोनों समाज के लोगों में आक्रोश व्याप्त हो गया। लोग तरह-तरह से अपनी प्रतिक्रिया देने लगे। इतना ही नहीं कई भाजपा नेता भी उनके विरोध में उतर आए हैं। भाजपा को लगने लगा कि इसका नुकसान न केवल वार्ड 11 में होगा बल्कि अन्य वार्डों के साथ ही मेयर की सीट पर भी हो सकता है। इसके बाद यह बातें शायद शंखवार को भी समझ में आ गईं।

जब लोगों के बीच आक्रोश बढ़ने लगा तो शंखवार ने उठक-बैठक लगाते हुए एक वीडियो जारी किया। इसके माध्यम से वह अपने बयान पर माफी मांगते दिखाई दे रहे हैं। भाजपा नेताओं का कहना है कि उपसभापति रह चुके योगेश शंखवार ने जनता के हित को दरकिनार किया था। भारी विरोध के बाद टिकट मिलना बड़ा सवाल है।

योगेश शंखवार 2017 के चुनाव में नगर निगम के उपसभापति भी रहे थे। इस बारे में योगेश शंखवार का कहना है कि हमारे विरोधियों ने साजिश रचकर वीडियो जारी कर दिया था। ऐसी बात मैं कभी कहना तो दूर बल्कि सोच भी नहीं सकता। फिर भी मैने उठक-बैठक लगाकर माफी मांगी है।

गोवा के समुद्र तट पर किशोरी को बचाने के दौरान डूबने से बिहार के बेगूसराय के एक ही परिवार के चार युवक-युवतियों की मौत, 30 वर्ष से गोवा में रह रहा

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गोवा के समुद्र तट पर किशोरी को बचाने में एक ही परिवार के चार युवक-युवतियों की मौत हो गई। डूबती हुई किशोरी को बचाने के लिए चार लोग समूद्र में कूद गए। एक को निकाला जा सका जबकि किशोरी समेत तीन अन्य डूब गए। ये सभी बिहार के बेगूसराय के रहने वाले थे। उनका पैत्रिक आवास तेघड़ा प्रखंड का पिढ़ौली गांव है। करीब 30 वर्ष से यह परिवार गोवा में ही रहता है। 

ईद के दूसरे दिन एक ही परिवार के 23 लोग घूमने निकले। इसी बीच लगभग 14 वर्षीया तबस्सुम तट के किनारे चली गई और गहरे पानी में डूबने लगी। आसपास के लोगों के साथ-साथ 25 वर्षीय मो. वकील, सकीना खातुन, मो. अलीम और मो. कलीम भी पानी में कूद कर उसे बचाने लगे। बचाने के क्रम में सभी लोग तेज धार में बहते चले गए। मो. कलीम को किसी तरह बचाया गया। उसका इलाज गोवा के ही एक अस्पताल में किया जा रहा है। जबकि तबस्सुम पिता मो. यासीन, मो. वकील पिता मो. सत्तार, सकीना खातुन पिता मो. अख्तर व मो. अलीम पिता मो. सत्तार की मौत हो गई।

मौत की सूचना पिढ़ौली गांव स्थित घर पर रिश्तेदार मो. निजाम को दी गई। मो. निजाम ने बताया कि हादसे की सूचना रविवार की शाम को मिली। उन्होंने बताया कि लगभग तीस वर्ष पूर्व मो. वकील का पूरा परिवार गोवा जाकर मेहनत मजदूरी करने लगा। वे लोग कभी-कभी घर आते थे। मो. निजाम ही उनके घरों की देखभाल करते हैं। मो. वकील गोवा में एक बैंक में नौकरी करते थे। घटना के बाद जदयू नेता देव कुमार ने घटना की जानकारी डीएम सहित अन्य अधिकारियों को देने की बात कही है। साथ ही उन्होंने बताया कि और जानकारी जुटाई जा रही है। इस घटना से पिढ़ौली बाजितपुर में सन्नाटा पसरा हुआ है।

पीएफआई पर एनआईए का एक्शन, बिहार, यूपी और एमपी समेत 17 ठिकानों पर छापेमारी

#nia_raids_multiple_places_against_pfi

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प्रतिबंधित संगठन पीएफआई पर राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने बड़ी कार्रवाई की है। रिपोर्टस के मुताबिक उत्तर प्रदेश, बिहार, मध्यप्रदेश समेत अन्य राज्यों के करीब 17 लोकेशन पर एनआईए एक साथ रेड कर रही है।टीम पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) से जुड़े लोगों के घर को खंगाल रही है।

जांच एजेंसियों को विशेष इनपुट मिला था कि अभी भी पीएफआई संगठन गैरकानूनी काम कर रहा है। इसके बाद एक साथ एनआईए की कई टीमें 17 जगहों पर छापेमारी कर रही है।बिहार की फुलवारी शरीफ में एफआईआर दर्ज की गई थी। इसको लेकर दरभंगा में भी एनआईए की कार्रवाई हो रही है। जानकारी के मुताबिक यहां पर एनआईए दो लोकेशन पर रेड कर रही है। दरभंगा शहर के उर्दू बाजार में डॉक्टर शारिक रजा के घर रेड हो रही है। दरभंगा में ही सिंहवाड़ा थाना एरिया के शंकरपुर में महबूब के घर पर भी छामेपारी की जा रही है।

वहीं मोतिहारी में सज्जाद अंसारी के घर में भी एनआईए की एक टीम पहुंची है। टीम के साथ स्थानीय पुलिस भी पहुंची है। सभी जगह बाहर से घर को लॉक कर दिया गया है। किसी बाहरी को प्रवेश नहीं करने दिया जा रहा है। टीम घर के अंदर दस्तावेजों को खंगाल रही है।

केंद्रीय गृह मंत्रालय ने पिछले साल सितंबर में पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) और उसके सहयोगियों को 'गैरकानूनी संघ' घोषित किया था। जिसमें कहा गया था कि पीएफआई और उसके सहयोगी या सहयोगी या मोर्चों को गंभीर अपराधों में शामिल पाया गया है, जिसमें आतंकवाद और इसके वित्तपोषण, लक्षित भीषण हत्याएं, देश के संवैधानिक ढांचे की अवहेलना, सार्वजनिक व्यवस्था को परेशान करना आदि शामिल हैं, जो प्रतिकूल हैं। देश की अखंडता, सुरक्षा और संप्रभुता के लिए। गृह मंत्रालय ने कहा कि संगठन की नापाक गतिविधियों पर लगाम लगाना जरूरी समझा। इसने पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) को अपने सहयोगियों या सहयोगियों या रिहैब इंडिया फाउंडेशन (RIF), कैंपस फ्रंट ऑफ इंडिया (CFI), ऑल इंडिया इमाम काउंसिल (AIIC), नेशनल कॉन्फेडरेशन ऑफ ह्यूमन राइट्स ऑर्गनाइजेशन (NCHRO) शामिल हैं।

यूपी के सीएम को मिली जान से मारने की धमकी, व्हाट्स एप नंबर पर मैसेज कर कहा-योगी को जल्द मार दूंगा’

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यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ को एक बार फिर से जान से मारने की धमकी मिली है। किसी अज्ञात शख्स ने 112 नंबर (आपातकालीन सेवाओं के लिए उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा शुरू किया गया एक नंबर)पर मैसेज कर ये धमकी दी है। यह धमकी रिहान नाम के शख्स ने दी है।धमकी के बाद यूपी एटीएस समेत सभी जांच एजेंसियां अलर्ट हो गई हैं।

सीएम योगी आदित्यनाथ को जान से मारने की यह धमकी 23 अप्रैल की रात 8:22 मिनट पर डायल 112 के वॉट्सऐप डेस्क पर मैसेज भेजकर दी गई। धमकी भरा मैसेज देख डायल 112 ने इसकी जानकारी सोमवार सुबह सुशांत गोल्फ सिटी थाना पुलिस को दी। पुलिस ने धमकी को लेकर एफआईआर दर्ज कर ली और जांच में जुट गई।पुलिस ने आरोपी के खिलाफ धारा 506 और 507 आईपीसी और 66 आईटी एक्ट के तहत मामला दर्ज किया है। वहीं यूपी एटीएस को भी इसकी जानकारी दी गई।

धमकी देने वाले शख्स ने कहा कि "मैं जल्द ही सीएम योगी को मार दूंगा"। इस मैसेज को कम्युनिकेशन अधिकारी शिखा अवस्थी ने उठाया, जिसमें सीएम योगी को जान से मारने की धमकी दी गई थी। जिसके बाद उन्होंने इस मैसेज का एक स्क्रीन शॉट ले लिया और तत्काल इसकी खबर बड़े अधिकारी की दी। इस मामले में अब लखनऊ के सुशांत गोल्फ सिटी थाने में केस दर्ज कर लिया गया है। पुलिस इस मामले की जांच में जुट गई हैं कि ये धमकी देने वाला शख्स कौन है? पुलिस आरोपी का पता लगा रही है।

ये पहली बार नहीं है जब सीएम योगी को इस तरह की धमकी दी गई हो, योगी सरकार के सख्त कदमों के चलते कई बार उन्हें इस की धमकी दी जा चुकी है।अभी हाल में प्रयागराज में माफिया अतीक और अशरफ की हत्या के बाद सीएम योगी निशाने पर आ गए थे। बागपत के रहने वाले एक युवक ने सोशल मीडिया पर पोस्ट कर सीएम योगी को गोली मारने की धमकी दी। लोगों ने जब सोशल मीडिया पर पोस्ट देखी तो यूपी डीजीपी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को टैग करते हुए युवक के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। बागपत पुलिस ने धमकी देने वाले युवक को गिरफ्तार कर लिया है।

सूडान में फंसे भारतीयों को सुरक्षित निकालने के लिए ऑपरेशन कावेरी शुरू, पोर्ट पहुंचे 500 भारतीय

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अफ्रीकी देश सूडान में फंसे भारतीय नागरिकों को वापस लाने के लिए सरकार ऑपरेशन कावेरी चला रही है। जिसके तहत 500 भारतीय पोर्ट सूडान पहुंच गए हैं।इस संबंध में विदेश मंत्री डॉ एस जयशंकर ने जानकारी दी।

विदेश मंत्री एस जयशंकर ने बचाव अभियान की ट्वीट कर जानकारी दी। विदेश मंत्री ने कहा कि इस ऑपरेशन के तहत करीब 500 भारतीय नागरिक सूडान के पोर्ट पर पहुंचे हैं जबकि अभी कुछ नागरिक रास्ते में हैं। उन्होंने कहा कि सूडान में फंसे प्रत्येक भारतीय की मदद करने के लिए हम प्रतिबद्ध हैं।हमारे विमान और शिप उन्हें वापस लाने के लिए तैयार हैं।

इस बीच जानकारी मिली है कि फ्रांसीसी वायु सेना की उड़ान के जरिए पांच भारतीय नागरिकों को सूडान से बाहर निकाला गया है। फ्रांस के राजनयिक सूत्र ने इसके बारे में जानकारी दी है। उन्होंने बताया कि तीन उड़ानों के जरिए करीबन 500 लोगों को जिबूती में फ्रांस के सैन्य अड्डे पर लाया गया है। इन लोगों में भारतीय के साथ ही 28 से अधिक अन्य राष्ट्रीयताओं के लोग शामिल हैं।

बता दें कि विदेश मंत्रालय ने कल जानकारी दी थी कि जेद्दाह में पहले ही इंडियन एयर फोर्स के दो विमान और सूडान के पोर्ट पर आईएनएस सुमेधा की तैनाती कर दी गई थी। सूडान से भारतीयों को निकालने के लिए अगर किसी इमरजेंसी सिचुएशन का भी सामना करना पड़ा तो भारत सरकार उसके लिए भी तैयार है, क्योंकि प्लानिंग पहले ही बना ली गई है।

सरकार ने शुक्रवार को कहा था कि वह सूडान में विभिन्न स्थानों पर मौजूद 3,000 से अधिक भारतीय नागरिकों की सुरक्षा पर अभी ध्यान दे रही है। शुक्रवार को एक हाई लेवल मीटिंग में, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सूडान से भारतीयों को सुरक्षित रूप से निकालने की आकस्मिक योजनाओं की तैयारी के लिए निर्देश दिए थे। गौरतलब है कि सूडान में, वहां की सेना और एक अर्द्धसैनिक समूह के बीच पिछले 10 दिनों से जारी भीषण लड़ाई में 400 से ज्यादा लोगों की जान जा चुकी है।

विपक्षी एकता की कवायद में नीतीश कुमार ने बढ़ाया एक और कदम, बंगाल में सजी सियासी बिसात, जानें ममता बनर्जी से मुलाकात में क्या हुई बात

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लोकसभा चुनाव के पहले बीजेपी विरोधी पार्टियों को एकजुट करने के लिए बिहार के मुख्यमंत्री लगातार प्रयासरत हैं। पहले कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे र राहुल गांधी से मुलाकात के बाद बंगाल मे सियासी बिसात सजी। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव सोमवार को कोलकाता पहुंचे। कोलकाता में दोनों ने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ बैठक की। यह बैठक राज्य सचिवालय नबान्न में हुई।बैठक में तीनों नेताओं के बीच विपक्षी एकता को मजबूत करने पर बात हुई। 

क्या बोले नीतीश कुमार?

पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी से मुलाकात के बाद दोनों ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की। नीतीश ने कहा- हम लोगों की अच्छी और पॉजिटिव बातचीत हुई है। नीतीश कुमार ने कहा कि अब पता नहीं, ये(भाजपा) इतिहास बदल देंगे या क्या कर देंगे? सभी को सतर्क होना है, इसलिए हम सभी के साथ बातचीत कर रहे हैं। आवश्यकता अनुसार हम भविष्य में अन्य पार्टियों को साथ में लाकर बातचीत करेंगे।

ममता बोलीं-हम चाहते हैं बीजेपी जीरो हो जाए

पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने कहा कि हम चाहते हैं कि जो बीजेपी हीरो बनी फिर रही है, वो आने वाले चुनाव में जीरो हो जाए। ममता ने बीजेपी पर जमकर हमला बोला। ममता बनर्जी ने कहा, मैंने नीतीश जी से यही अनुरोध किया है कि जयप्रकाश जी का आंदोलन बिहार से हुआ था तो हम भी बिहार में ऑल पार्टी मीटिंग करें। हमें एक संदेश देना है कि हम सभी एक साथ हैं। मैंने तो पहले ही कह दिया है कि मुझे इससे कोई एतराज नहीं है।

नीतीश-ममता की मुलाकात है खास

आगामी लोकसभा चुनाव को लेकर नीतीश और तेजस्‍वी के साथ ममता की मुलाकात को सियासी तौर पर काफी अहम माना जा रहा है। संभव है कि लोकसभा चुनाव में पीएम पद की उम्मीदवारी को लेकर ममता के साथ नीतीश कुमार की बातचीत काफी महत्वपूर्ण हो सकती है। विपक्षी एकता को एकजुट करने के लिए नीतीश काफी प्रयासरत हैं। अगर उनकी ये कोशिश कामयाब होती है तो बीजेपी के लिए मुश्किल आगामी चुनाव में जीत का रास्ता कठिन हो जाएगा।

अखिलेश से भी मुलाकात के आसार

जानकारी यह भी मिली है कि ममता से मुलाकात के बाद नीतीश कुमार सीधे लखनऊ जाकर अखिलेश यादव से मिलेंगे। इससे पहले पिछले महीने ही समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने कोलकाता के कालीघाट में ममता से मुलाकात की थी। बैठक में, दोनों नेताओं ने कांग्रेस से दूरी बनाए रखने और 2024 के चुनावों में भाजपा के खिलाफ क्षेत्रीय ताकतों की एकता पर फोकस करने पर सहमति व्यक्त की थीं।

पंचायती राज्य सम्मलेनःपीएम मोदी ने कांग्रेस को घेरा, कहा- जिस दल की सरकार ने सबसे ज्यादा समय तक शासन किया, उसी ने गांवों का भरोसा तोड़ा

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प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी आज मध्यप्रदेश के रीवा जिले में राष्ट्रीय पंचायती दिवस के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में शामिल हुए। पीएम मोदी ने रीवा के एस.ए.एफ ग्राउंड में आयोजित राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस समारोह में रिमोट दबाकर पंचायत स्तर पर सार्वजनिक खरीद के लिए बनाए गए एकीकृत ई-ग्राम स्वराज और जीईएम पोर्टल का शुभारंभ किया। साथ ही पीएम मोदी ने रिमोट का बटन दबाकर प्रधानमंत्री समावेशी विकास विषय पर आजादी का अमृत महोत्सव अभियान के तहत एकीकृत राष्ट्रीय लांच और एकम समावेशी विकास वेबसाइट और मोबाइल ऐप का शुभारंभ कियाष

कांग्रेस ने गांवों का भरोसा तोड़ा-पीएम मोदी

पीएम मोदी ने शिवराज सरकार के कार्यों की सराहना करते हुए छिंदवाड़ा के विकास की बात करते हुए कमलनाथ पर निशाना साधा। वहीं, कांग्रेस को घेरते हुए पीएम ने कहा कि जिस दल की सरकार ने देश में सबसे ज्यादा समय तक शासन किया। उसने ही गांवों का भरोसा तोड़ दिया।

90 के दशक में पंचायती राज के नाम पर खानापूर्ति हुई-पीएम मोदी

पीएम मोदी ने कांग्रेस पर तंज कसते हुए कहा कि पूज्य बापू कहते थे भारत की आत्मा गांवों में बसती है, लेकिन कांग्रेस ने गांधी के विचारों को भी अनसुना किया। आजादी के बाद की सरकारों ने भारत की पंचायती राज व्यवस्था को ध्वस्त किया। जो व्यवस्था सैकड़ों वर्ष, हजारों वर्ष पहले से थी, उसी पंचायती राज व्यवस्था पर आजादी के बाद भरोसा ही नहीं किया गया।90 के दशक में पंचायती राज के नाम पर खानापूर्ति की, ध्यान नहीं दिया। 2014 के बाद से देश ने अपनी पंचायतों के सशक्तिकरण का बीड़ा उठाया। आज इसके परिणाम नजर आ रहे हैं। आज भारत की पंचायतें गांवों के विकास की प्राणवायु बनकर उभर रही हैं।

2 लाख से अध‍िक पंचायतों तक ऑप्ट‍िकल फाइबर की सुव‍िधा- पीएम मोदी

पीएम मोदी ने कहा कि 2014 से पहले पंचायतों के ल‍िए व‍ित्त आयोग का अनुदान 17 हजार करोड़ से कम था। क्या इतनी कम राश‍ि से इतना बड़ा देश और इतनी सारी पंचायतों काम कर पाती। 2014 में हमारी सरकार आने के बाद पंचायतों को म‍िला ये अनुदान 2 लाख करोड़ से ज्यादा हो गया है। पहले की सरकार ने ग्राम पंचायतों तक ऑप्ट‍िकल फाइबर पहुंचाने की योजना शुरू की थी, लेकि‍न उस योजना के तहत 70 से भी कम ग्राम पंचायतों को ऑप्ट‍िकल फाइबर से जोड़ा गया था, वह भी शहर के पास वाली पंचायतों तक ये सुव‍िधा थी, लेक‍िन हमारी सरकार ने 2 लाख से अध‍िक पंचायतों तक ऑप्ट‍िकल फाइबर की सुव‍िधा दी है।

सरकार की योजना को पूरा करने के ल‍िए पंचायतें पूरी न‍िष्ठा से काम कर रही- पीएम मोदी

पीएम मोदी ने आगे कहा कि 30 लाख पंचायती प्रत‍िन‍िध‍ि वर्चुअली जुड़े हुए हैं। ये न‍िश्च‍ित रूप से भारत के लोकतंत्र की सशक्त तस्वीर है। हम सभी जनता के प्रत‍िन‍िध‍ि हैं। हम सभी देश और लोकतंत्र के ल‍िए समर्पि‍त हैं। काम के दायरे भले ही अलग हों, लेक‍िन लक्ष्य जनसेवा से राष्ट्र सेवा का एक ही है। उन्होंने आगे कहा कि मुझे खुशी है कि‍ गांव और गरीब का जीवन आसान बनाने के ल‍िए कई योजनाएं केंद्र सरकार ने बनाई है उन्हें पूरा करने के ल‍िए पंचायतें पूरी न‍िष्ठा से जमीन पर उतार रही हैं।

अतीक-अशरफ हत्याकांड मामले में स्वतंत्र जांच की मांग, सुप्रीम कोर्ट 28 अप्रैल को करेगा सुनवाई

#supremehearingofatiqashrafmurdercasetobeheldonapril28

प्रयागराज में पुलिस की कस्टडी में माफिया भाइयों अतीक अहमद और अशरफ अहमद की हत्या की जांच के लिए सुप्रीम कोर्ट के एक पूर्व जज की अध्यक्षता में एक स्वतंत्र विशेषज्ञ समिति गठित करने की मांग वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट 28 अप्रैल को सुनवाई करने के लिए सहमत हो गया है।अधिवक्ता विशाल तिवारी द्वारा दायर याचिका में 2017 के बाद से उत्तर प्रदेश में हुई 183 मुठभेड़ों की जांच की भी मांग की गई है।

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सुप्रीम कोर्ट में ये याचिका वकील विशाल तिवारी ने दायर की है। इस याचिका में उत्तर प्रदेश में साल 2017 के बाद से हुए 183 हुए एनकाउंटरों की स्वतंत्र जांच कराने की मांग भी की गई है। जांच सुप्रीम के रिटायर्ड जज की निगरानी में एक्सपर्ट कमिटी से कराने की मांग की गई। तिवारी ने चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ और जस्टिस पीएस नरसिम्हा की बेंच के सामने इस मामले में तत्काल सुनवाई की मांग की थी। हालांकि, कोर्ट ने इस मामले को 28 अप्रैल को लिस्ट करने के निर्देश दिए।जजों के कोविड से प्रभावित होने की वजह से सोमवार को सुनवाई नहीं हो सकी। पिछले हफ्ते सुप्रीम कोर्ट इस मामले पर सुनवाई के लिए तैयार हो गया था जिसके बाद मामले पर सुनवाई के विए 24 अप्रैल की तारीख तय की गई थी। सुप्रीम कोर्ट ने पिछले हफ्ते जल्द सुनवाई की मांग पर इस याचिका को 24 अप्रैल को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध करने को कहा था। लेकिन सोमवार को मामला सूचीबद्ध नहीं हुआ।

पूर्व आईपीएस ने भी की जांच की मांग

पूर्व आईपीएस अधिकारी अमिताभ ठाकुर ने भी सुप्रीम कोर्ट में लेटर पिटिशन दाखिल करके अतीक अहमद और उसके भाई की हत्या मामले की सुप्रीम कोर्ट या हाईकोर्ट की निगरानी में सीबीआई जांच कराने की मांग की है। अमिताभ ठाकुर ने याचिका में कहा है कि 'भले ही अतीक अहमद और उसका भाई अपराधी हों मगर जिस तरह से उनकी हत्या हुई, उससे इस घटना के राज्य पोषित होने की पर्याप्त संभावना दिखती है।

पुलिस-प्रशासन सवालों के घेरे में

बता दें, माफिया ब्रदर्स अतीक अहमद और अशरफ की पुलिस कस्टडी में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। तीन हमलावरों ने 18 राउंड फायरिंग करके दोनों भाइयों को मौत के घाट उतार दिया था। तीनों आरोपियों की पहचान लवलेश, सनी सिंह और अरुण मौर्य के तौर पर हुई थी।जब अतीक और अशरफ की हत्या की गई, उस समय उनको एक साथ एक हथकड़ी में बांधकर रखा गया था। वे अस्पताल के परिसर में कुछ पत्रकारों के सवालों को जवाब दे रहे थे, तभी खुद को पत्रकारों के रूप में पेश करने वाले तीन लोगों ने दोनों माफिया भाइयों के बहुत करीब से गोली मार दी। इससे पहले झांसी में 13 अप्रैल को अतीक के बेटे असद और उसके एक साथी को भी पुलिस ने मुठभेड़ में मार गिराया था। असद को दफनाए जाने के कुछ ही घंटों के भीतर पूर्व सांसद अतीक और उसके भाई की भी हत्या कर दी गई।

फर्जी SMS और लिंक के जरिए हो रहा ऑनलाइन फ्रॉड, पढ़ लीजिए इस बड़े सरकारी बैंक ने ग्राहकों के लिए जारी किया अलर्ट


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देश के सार्वजनिक क्षेत्र के पंजाब नेशनल बैंक की ओर से फ्रॉड को लेकर एक अलर्ट जारी किया गया है, जिसमें बैंक के नाम पर फर्जी लिंक से बचने की सलाह दी गई है। बैंक की ओर से सोशल मीडिया पर इसके लिए एक एडवाइजरी भी जारी की गई है।

पंजाब नेशनल बैंक की ओर से एक ट्वीट कर ग्राहकों से कहा गया कि 'पीएनबी 130 एनीवर्सरी गवर्नमेंट फाइनेंशियल सब्सिडी' नाम से एक मैसेज सोशल मीडिया पर चलाया जा रहा है। इस तरह के जाली मैसेज ग्राहकों को सावधान रहना चाहिए।

बैंक ने जारी किया बयान

पीएनबी की ओर से जारी किए गए आधिकारिक बयान में बताया गया कि इस तरह के जाली मैसेज के जरिए जालसाज पीएनबी ब्रांड के नाम का उपयोग करके लोगों के साथ अलग-अलग तरह के फ्रॉड करने की कोशिश कर रहे हैं। इस तरह के चोरी और जालसाजी करने के पिछले दिनों कुल मामले आए हैं।

बैंक ने ग्राहकों को इसे लेकर सतर्क रहने की सलाह दी है। खासकर सोशल मीडिया पर इस तरह से फ्रॉड को अंजाम दिया जा रहा है।

बैंक ग्राहकों से कहा है कि किसी भी तरह की निजी जानकारी जैसे बैंक खाते, नेट बैंकिंग के पासवर्ड, डेबिट कार्ड नंबर फोन कॉल या फिर ईमेल पर नहीं देनी है, चाहे ये जानकारियां बैंक के कर्मचारी की ओर से ही क्यों न मांगी जा रही हो।

पंजाब नेशनल बैंक की वेबसाइट के मुताबिक, पीएनबी देश का पहला स्वदेशी बैंक है। बैंक की स्थापना 12 अप्रैल 1895 को हुई थी। बैंक की शुरुआत से लेकर अब तक पीएनबी में 9 बैंकों का विलय और एकीकृत किया गया है।

तो क्या कुछ ही दिन की मेहमान है महाराष्ट्र में शिंदे सरकार? सुप्रीम कोर्ट में ये केस बना ठाकरे गुट की उम्मीद, पढ़िए, पूरी रिपोर्ट

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महाराष्ट्र की सियासी फिजा बदली-बदली सी लग रही है। बीते साल राज्य की सत्ता गंवाने वाली शिवसेना (यूबीटी) के नेताओं के सुर अलग नजर आ रहे हैं। पहले संजय राउत और अब उद्धव ठाकरे... पार्टी के कद्दावर नेताओं का दावा है कि राज्य की मौजूदा एकनाथ शिंदे सरकार कुछ ही दिन की मेहमान है।

शिंदे सरकार का 'डेथ वारंट' जारी

संजय राउत ने तो ये भी कह दिया था कि अगले 15-20 दिनों में एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली महाराष्ट्र सरकार गिर जाएगी। उन्होंने कहा कि शिंदे सरकार का 'डेथ वारंट' जारी हो चुका है। संजय राउत ने इसी रविवार को पत्रकारों के साथ बातचीत में कहा, "उनकी पार्टी अदालत के आदेश का इंतजार कर रही है और उम्मीद कर रही है कि न्याय होगा।"

कभी भी हो सकते हैं चुनाव

संजय राउत के बाद पार्टी अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने भी दावा किया है कि राज्य में कभी भी चुनाव हो सकते हैं और उनकी पार्टी इसके लिए पूरी तरह से तैयार है। उद्धव ने महाराष्ट्र में इसी रविवार को एक रैली को संबोधित करते हुए कहा कि चुनाव कभी भी हो सकते हैं, आज भी हम तैयार हैं।

संजय, उद्धव के बयान का आधार क्या?

शिवसेना (यूबीटी) नेता लगातार शिंदे सरकार के गिरने के दावे कर रहे हैं, लेकिन बीजेपी इस वक्त साइलेंट मोड पर है। राज्य में जल्द चुनाव के दावे के पीछे की वजह है सुप्रीम कोर्ट में एक केस। दरअसल, महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे गुट के 16 विधायकों की वैधता पर सुप्रीम कोर्ट का फैसला अगले सप्ताह तक आने की उम्मीद है। कोर्ट के फैसले के बाद ही साफ होगा की मौजूदा सरकार अगले चुनाव से पहले ही जाएगी या अपनी सत्ता बचाने में कामयाब होगी।

सुप्रीम कोर्ट सुनाएगा विधायकों की वैधता पर फैसला

गौरतलब है कि बीते साल जून में महाविकास आघाड़ी की सरकार जाने के बाद पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे गुट की ओर से 16 विधायकों की सदस्यता की वैधता को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई थी। इस याचिका पर सुप्रीम कोर्ट की पांच सदस्यीय संविधान पीठ ने अपना फैसला सुरक्षित रखा हुआ है। यदि संविधान पीठ के फैसले में इन 16 विधायकों की सदस्यता को अवैध ठहराया जाता है तो अभी चल रही एकनाथ शिंदे सरकार खतरे में पड़ सकती है।