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Oct 13 2023, 11:32

कनाडा में खालिस्तानी आतंकी गुरपतवंत सिंह पन्नू के खिलाफ कार्रवाई की मांग, हिंदू फोरम ने ट्रूडो सरकार से की ये अपील

#hindu_forum_canada_demand_action_against_khalistani_gurpatwant_singh_pannun

हिंदू फोरम ऑफ कनाडा ने हमास का खुलेआम समर्थन करने वाले आतंकवादी गुरपतवंत सिंह पन्नू पर तत्काल कार्यवाई की मांग की है।दरअसल, हाल ही में आतंकवादी गुरपतवंत सिंह पन्नू ने कनाडा सहित G7 देशों में भारतीय वाणिज्य दूतावासों के खिलाफ धमकियां जारी की और इजरायल-हमास के बीच जारी जंग में हमास का समर्थन किया। पन्नू ने आतंकी संगठन हमास का समर्थन कर भारत पर भी ऐसे हमले की धमकी दी थी। अब इसे लेकर कनाडा में रहने वाले हिंदू समुदाय ने गहरी चिंता जाहिर की है और कनाडा सरकार से पन्नू के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है। 

गुरुवार को कनाडा के सार्वजनिक सुरक्षा मंत्री डोमिनिक लेब्लांक को संबोधित एक ईमेल में, हिंदू फोरम ऑफ कनाडा (एचएफसी) ने पन्नू के खिलाफ तत्काल कार्रवाई का आह्वान किया था। हिंदू फोरम ऑफ कनाडा ने कहा कि ऐसे बयानों को बर्दाश्त नहीं किया जाना चाहिए। हम कनाडा सरकार से तत्काल कार्रवाई करने का आग्रह करते हैं, क्योंकि हम अपने समुदाय की सुरक्षा को लेकर बहुत चिंतित हैं। इस तरह के घृणित वीडियो और भाषण नफरत और हिंसा को बढ़ा रहे हैं। इसके अलावा, कहा कि कनाडा में हिंदू समुदाय के भीतर डर पैदा हो गया है, इसलिए उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सरकारी हस्तक्षेप जरूरी है।

हिंदू फोरम कनाडा ने कहा है कि निर्दोष लोगों की जान के नुकसान के लिए जिम्मेदार हमास आतंकवादियों के कार्यों की निंदा करने में लगातार इजरायल के साथ एकजुटता से खड़ा रहा है। इसमें कहा गया है कि उनका रुख आतंकवादी हमलों की वैश्विक निंदा के अनुरूप है, जैसा कि कनाडा के प्रधान मंत्री सहित सरकार के सभी स्तरों पर कनाडाई राजनीतिक नेताओं ने दोहराया है।

कनाडा के हिंदू फोरम ने मंत्री लेब्लांक को अपनी अपील में अनुरोध किया है कि यदि गुरपतवंत सिंह पन्नून कनाडाई नागरिक नहीं हैं, तो उनके कनाडा में प्रवेश पर रोक लगा दी जाए। यदि वह वास्तव में एक कनाडाई नागरिक है, तो उन्होंने आग्रह किया है कि उसकी पूरी जांच की जाए और यदि आवश्यक हो, तो उसके बयानों और धमकियों की प्रकृति को देखते हुए, घृणा अपराधों के संबंध में आरोप लगाया जाए।

बता दें कि पन्नू का एक वीडियो सामने आया है, जिसमें वह कहता सुनाई दे रहा है कि '21 अक्तूबर से सिख फॉर जस्टिस संगठन जी7 देशों के वैंकुवर, वॉशिंगटन डीसी, लंदन, फ्रैंकफर्ट, मिलान से भारत के दूतावासों को बंद कराएंगे।' बता दें कि इससे पहले निज्जर की मौत के मामले में भी पन्नू ने भारत और भारतीयों के खिलाफ जहर उगला था। पन्नू ने कनाडा से हिंदू समुदाय के लोगों को चले जाने को कहा था।

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Oct 13 2023, 10:34

विपक्षी गठबंधन 'इंडिया' ने फेसबुक-गूगल को लिखी चिट्ठी, कहा-चुनाव में नफरत न फैले-निष्पक्ष रहें

#india_alliance_letter_to_google_facebook 

विपक्षी गठबंधन ‘इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इंक्लूसिव अलायंस’ यानी 'इंडिया' ने फेसबुक के संस्थापक मार्क जुकरबर्ग और गूगल के सीईओ सुंदर पिचाई को पत्र लिखा है। ‘इंडिया’ ने देश में “सांप्रदायिक नफरत को बढ़ावा देने” में उनके सोशल मीडिया मंचों की कथित भूमिका को लेकर विरोध दर्ज कराया है। उन्होंने यह मांग भी की है कि आगामी चुनावों में उनके सोशल मीडिया मंचों को तटस्थता सुनिश्चित करनी चाहिए।पत्र को कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने सोशल मीडिया पर साझा किया है। 

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने चिट्ठी शेयर करते हुए सोशल मीडिया साइट एक्स पर बताया कि भारत की पार्टियों ने फेसबुक पर समाज में नफरत फैलाने में योगदान देने और सांप्रदायिक नफरत भड़काने का आरोप लगाया है। साथ ही गठबंधन ने सोशल साइट्स को चुनावों के दरमियान निष्पक्ष रहने का अनुरोध किया है।विपक्ष ने जुकरबर्ग को लिखी चिट्ठी में इस बात पर जोर दिया कि इंडिया गठबंधन में 28 राजनीतिक दल शामिल हैं जो संयुक्त विपक्षी गठबंधन की अगुवाई करते हैं। इनमें शामिल पार्टियों की 11 राज्यों में सरकार है, जो कुल भारतीय मतदाताओं में आधे का प्रतिनिधित्व करते हैं।

विपक्षी गठबंधन ने साथ ही वाशिंगटन पोस्ट की एक रिपोर्ट भी अटैच की है।कांग्रेस अध्यक्ष खरगे ने वाशिंगटन पोस्ट की उस जांच का हवाला दिया, जिसमें बीजेपी सदस्यों और समर्थकों द्वारा सांप्रदायिक नफरत को बढ़ावा देने में व्हाट्सएप और फेसबुक की भूमिका का खुलासा किया गया था।उन्होंने “भारत के दबाव में, फेसबुक ने प्रचार और नफरत फैलाने वाले भाषण को पनपने दिया” शीर्षक से एक अन्य लेख का भी हवाला दिया, जिसमें कथित रूप से सत्तारूढ़ व्यवस्था और फेसबुक इंडिया के अधिकारियों के बीच सांठगांठ का खुलासा हुआ था। पार्टियों ने मेटा पर सत्ताधारी पार्टी की सामग्री को बढ़ावा देने के दौरान एल्गोरिथम मॉडरेशन और विपक्षी नेताओं के कंटेंट को दबाने का आरोप लगाया।

पत्र में कहा गया कि हमारे पास जानकारी है, जो आपके मंच पर विपक्षी नेताओं की सामग्री के एल्गोरिथम मॉडरेशन और दमन को साबित करता है और सत्तारूढ़ पार्टी की सामग्री को भी बढ़ावा देता है। पत्र में कहा गया कि एक निजी विदेशी कंपनी द्वारा इस तरह की पक्षपातपूर्ण कार्रवाई भारत के लोकतंत्र में हस्तक्षेप करने के समान है। चूंकि, 2024 में लोकसभा चुनाव होने हैं, ऐसे में आपसे हमारी गंभीर और तत्काल अपील है कि आप इन तथ्यों पर गंभीरता से विचार करें और तुरंत सुनिश्चित करें कि भारत में मेटा का संचालन तटस्थ रहे।

दरअसल, अमेरिकी अखबार वाशिंगटन पोस्ट में हाल ही में एक रिपोर्ट पब्लिश की गई. इसमें कहा गया कि फेसबुक, व्हाट्सऐप और यूट्यूब जैसे प्लेटफॉर्म कथित तौर पर सत्तारूढ़ बीजेपी और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सरकार की तरफ झुकाव रख रहे हैं। फेसबुक और व्हाट्सऐप का स्वामित्व मेटा के पास तथा यूट्यूब का स्वामित्व गूगल के पास है। इसके बाद ही इंडिया गठबंधन में शामिल पार्टियों ने दोनों सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के सीईओ को चिट्ठी लिखी है।

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Oct 13 2023, 09:56

इस्राइल में फंसे भारतीयों को लेकर पहला विमान पहुंचा दिल्ली, 212 लोगों की सुरक्षित घर वापसी

#india_operation_ajay_first_batch_of_indian_passengers_reach_delhi_from_israel

इस्राइल में फंसे भारतीयों का पहला जत्था विशेष विमान से नई दिल्ली पहुंच गया है। इजरायल से भारत लौटे पहले जत्थे में महिलाओं, बुजुर्गों और बच्चों को मिलाकार कुल 212 लोग भारत पहुंचे हैं. इन लोगों ने दिल्ली पहुंचते ही भारत सरकार को धन्यवाद दिया। बता दें, हमास ने शनिवार सुबह इस्राइल पर हमला किया था, जिसके बाद से अब तक दोनों देशों के बीच युद्ध जारी है। हमले में दोनों पक्षों के करीब 2500 लोगों की मौत हो चुकी है। 

इजराइल और हमास के बीच भीषण जंग जारी है। इस जंग में कई देशों के नागरिकों की मौत भी हो चुकी है।इस बीच इस्राइल में फंसे भारतीयों को वापस भारत लाने के लिए भारत सरकार ने ऑपरेशन अजय शुरू किया है। इस कड़ी में इजराइल से 212 भारतीय नागरिकों का पहला जत्था आज सुबह फ्लाइट AI1140 से नई दिल्ली एयरपोर्ट पहुंचा।इस दौरान इजराइल से अपने वतन वापस लौटे यात्रियों का स्वागत करने के लिए एयरपोर्ट पर केंद्रीय मंत्री राजीव चन्द्रशेखर मौजूद रहे। इजराइल के युद्ध के बीच देश छोड़ने के इच्छुक 212 भारतीयों को लेकर पहली चार्टर उड़ान गुरुवार को बेन गुरियन एयरपोर्ट से रवाना हुई थी।

इससे पहले इस्राइल में भारत के राजदूत संजीव सिंगला ने कहा कि इस्राइल में भारतीय दूतावास यहां फंसे भारतीयों की मदद कर रहा है। भारतीय यात्रियों का पहले जत्थे ने गुरुवार को तेल अवीव से भारत के लिए उड़ान भरी थी। पहले जत्थे में 212 लोग शामिल शामिल हैं। भारतीय दूतावास उन लोगों की मदद करेगा, जो भारत जाना चाहते हैं। इसके लिए गुरुवार से पंजीकरण शुरू हो गया है। भारतीय नागरिकों के लिए एक हेल्पलाइन स्थापित की गई है। संघर्ष को देखते हुए एक दिन पहले 24 घंटे का नियंत्रण कक्ष स्थापित किया था। 

हमास से जंग शुरू होने के बाद भारतीयों को निरंतर वहां से निकाला जा रहा है। जिसके तहत केंद्र सरकार ने ऑपरेशन अजय शुरू किया है। 7 अक्टूबर के बाद से भारत ने इजरायल के लिए अपनी सभी फ्लाइटों को बंद कर दिया था। जिसके कारण वे लोग फंस गए थे, जो भारत लौटना चाह रहे थे। अब ऑपरेशन चलाकर सरकार अपने लोगों को वहां से निकाल रही है। इन लोगों से कोई किराया भी वसूल नहीं किया जा रहा। भारत के इजरायल में लगभग 18 हजार लोग हैं।

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Oct 12 2023, 20:02

इजराइल-हमास युद्ध को लेकर भारत ने साफ किया अपना रूख, विदेश मंत्रालय ने कहा-ये आतंकी हमला

#mea_on_israel_palestine_conflict

इजरायल-हमास के बीच जंग जारी है। इसी बीच, भारत ने इजरायल से भारतीयों की सुरक्षित वापसी के लिए ऑपरेशन लॉन्च कर दिया है।विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने बताया कि एक फ्लाइट देर रात इजरायल के तेल अवीव से उड़ेगी और कल सुबह 230 यात्री वापस आएगी। बागची ने बताया कि हमारे सारे विकल्प है, भारतीय वायुसेना का इस्तेमाल हमने पहले भी किया है, लेकिन अभी चार्टेड फ्लाइट ही इस्तेमाल कर रहे है। भारतीय नागरिकों के एडवायजरी फॉलो करनी चाहिए, जो भारतीय दूतावास ने जारी की है।अगर कोई जरूरत हो तो वो दूतावास से संपर्क कर सकते है. हम हर हालात पर नजर रखे हुए हैं।

वहीं, विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा, 'फिलिस्तीन को लेकर भारत की पॉलिसी लंबे समय से एक ही रही है। भारत हमेशा से बातचीत के माध्यम से आजाद और संप्रभु फिलिस्तीन बनाने की वकालत कर रहा है। भारत का स्टैंड अब भी यही है। अरिंदम बागची ने आगे कहा कि हमास द्वारा इजरायल पर किए गए हमले को भारत एक आतंकी हमले की तरह देख रहा है।'

भारत की ओर से हमास को आतंकी संगठन कहे जाने को लेकर विदेश मंत्रालय ने कहा कि यह कानूनी मामला है। इसे कानूनी तौर पर देखना होगा, लेकिन मौजूदा स्थिति में हम बहुत स्पष्ट हैं कि यह एक आतंकवादी हमला है। हम युद्ध के कानूनों के अनुसार लड़ने को एक वैश्विक दायित्व के रूप में भी मानते हैं। अंतरराष्ट्रीय मानवीय कानून का पालन करना एक सार्वभौमिक दायित्व है। आतंकवाद के सभी रूपों और अभिव्यक्तियों के खतरे से लड़ना भी एक वैश्विक जिम्मेदारी है।

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Oct 12 2023, 19:26

उत्तराखंड में पीएम मोदी ने क‍िया 4200 करोड़ रुपए की विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शि‍लान्‍यास, बोले- भारत की ताकत को देख रही दुनिया

 प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज उत्तराखंड दौरे पर हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पिथौरागढ़ के पार्वती कुंड में पूजा-अर्चना की। इसके बाद पीएम मोदी ने गुंजी में रं समाज के स्टाल में पारंपरिक वस्तुएं और उत्पाद देखे।

साथ ही पारंपरिक वाद्य यंत्र ढोल भी बजाया। लोगों का हाथ हिलाकर स्वीकार अभिवादन किया। पीएम पिथौरागढ़ में लगभग 4,200 करोड़ रुपये की कई विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया।

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Oct 12 2023, 19:14

हमास के साथ जंग के बीच इजरायल ने सीरिया पर बोला हमला, दमिश्क में हवाई अड्डे पर बरसाए बम

#israel_airstrike_syria_airports_after_hamas_war

शनिवार को हमास के हमले के बाद इजरायली सेना गाजा में जबरदस्त जवाबी कार्रवाई कर रही है। इजरायल ने पिछले छह दिनों में गाजा में कम से कम 1000 जगहों पर हवाई हमले किए हैं। इन हमलों में गाजा में 1200 नागरिकों की मौत हुई है। इस बीच आज इजरायली सेना ने सीरिया की राजधानी दमिश्क में एयरपोर्ट को निशाना बनाया है। ऐसी रिपोर्ट्स थी कि ईरानी विदेश मंत्री सीरिया पहुंचने वाले हैं। इससे पहले ही इजरायल ने सीरिया की राजधानी में एयरपोर्ट को ही उड़ा दिया।

सीरिया के सरकारी टीवी चैनल ने बताया कि इजरायल-हमास जंग के बीच यह सीरिया पर पहला हमला है। जानकारी के मुताबिक, इजरायल ने दमिश्क और अलेप्पो एयरपोर्ट पर एयरस्ट्राइक की है। इजरायली हमलों के कारण बार-बार अलेप्पो और राजधानी दमिश्क के हवाई अड्डों पर उड़ानें रोकनी पड़ी हैं। दोनों युद्धग्रस्त सीरिया की सरकार द्वारा नियंत्रित हैं।

सीरिया के सरकारी टीवी चैनल ने सैन्य सूत्रों के हवाले से बताया कि गुरुवार दोपहर लगभग 1.50 बजे इजरायली सेना ने अलेप्पो और दमिश्क अंतर्राष्ट्रीय हवाईअड्डों पर रॉकेट दागे। इससे हवआईअड्डों की हवाईपट्टी को नुकसान पहुंचा है।यह हमला गाजा में इजरायल के अपराध से दुनिया का ध्यान भटकाने का प्रयास है।

इजरायल की सेना ने मंगलवार को बताया कि सीरियाई क्षेत्र से इजरायल की ओर कई गोले दागे गए हैं। हालांकि, इन हमलों में किसी के हताहत होने की खबर नहीं है। इस बीच इजरायल ने गुरुवार को सीरिया की राजधानी दमिश्क में हवाई अड्डे पर हमला किया और रनवे को तबाह कर दिया। दावा किया जा रहा है कि ईरानी विदेश मंत्री सीरिया का दौरा करने वाले थे। इसके विरोध में इजरायल ने हमला कर हवाई अड्डे को बर्बाद किया है। हमास ने कहा है कि इजरायल पर उसके हमले में ईरान ने मदद की थी, हालांकि तेहरान ने इससे इनकार किया है।

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Oct 12 2023, 18:42

विदेश मंत्री एस जयशंकर की सुरक्षा बढ़ाई गई, आईबी अलर्ट के बाद मिली Z कैटेगरी सिक्‍योरिटी

#foreignministersjaishankargivenzcategory_security

विदेश मंत्री एस जयशंकर की सुरक्षा को लेकर केंद्र सरकार ने बड़ा फैसला लिया है। केंद्रीय गृहमंत्रालय ने विदेश मंत्री एस जयशंकर की सुरक्षा बढ़ा दी है और अब इस तरह विदेश मंत्री एस जयशंकर को वाई की जगह अब जेड कैटेगरी की सुरक्षा मिलेगी। बताया जा रहा है कि आईबी की थ्रेट रिपोर्ट के आधार पर केंद्रीय गृहमंत्रालय ने विदेश मंत्री जयशंकर की सुरक्षा बढ़ाई है।

सवाल ये है कि आखिर विदेश मंत्री की सुरक्षा बढ़ाने का फैसला क्‍यों लिया गया? दरअसल, गृह मंत्रालय के सूत्रों के मुताबिक, विदेश मंत्री एस जयशंकर की जान को खतरा बढ़ा है। इंटेलिजेंस ब्‍यूरो की थ्रेट रिपोर्ट के बाद जयशंकर की सिक्‍योरिटी बढ़ाने का फैसला किया गया है। जयशंकर मोदी कैबिनेट के सबसे मुखर मंत्रियों में शुमार हैं। उन्‍हें अपनी बात को बेहद खरे तरीके से रखने के लिए जाना जाता है। उनके कार्यकाल में भारतीय विदेश नीति में आक्रामकता आई है।

Y से Z कैटेगरी में क्या अंतर है?

अब तक जयशंकर को Y श्रेणी की सुरक्षा मिली हुई थी। इस तरह की सिक्‍योरिटी में 11 सुरक्षाकर्मियों का कवर मिलता है। इसमें एक या दो कमांडो और दो पीएसओ शामिल होते हैं। जयशंकर की सिक्‍योरिटी Y से Z में अपग्रेड होने का मतलब यह है कि अब उन्‍हें 22 सुरक्षाकर्मियों का कवर मिलेगा। ये सुरक्षाकर्मी 24 घंटे उनकी सिक्‍योरिटी में तैनात होंगे। इनमें 4 से 6 एनएसजी कमांडो के साथ दिल्‍ली पुलिस और सीआरपीएफ के जवान भी होंगे।

क‍ितनी तरह की होती है स‍िक्‍योर‍िटी?

बता दें कि केंद्र सरकार ने सुरक्षा के लिए पांच कैटेगरी बना रखी है. इसमें X, Y, Y+, Z और Z+ शामिल है।खतरे के हिसाब से व्यक्ति को सुरक्षा दी जाती है। कैटेगरी बढ़ने के साथ-साथ खर्चा भी बढ़ता जाता है।हर कैटेगरी के बढ़ने के साथ खर्च भी बढ़ जाता है। X कैटेगरी में दो सुरक्षाकर्मी होते हैं। इनमें कोई कमांडो नहीं होता है। एक पर्सनल सिक्‍योरिटी ऑफिसर (पीएसओ) भी होता है। Y में 11 सुरक्षाकर्मियों का कवर होता है। इनमें एक या दो कमांडो और दो पीएसओ शामिल होते हैं। Y+ में 11 सिक्‍योरिटी पर्सन के अलावा एस्‍कॉर्ट वाहन होता है। एक गार्ड कमांडर और चार गार्ड आवास पर रहते हैं। Z श्रेणी में 22 सुरक्षाकर्मी रहते हैं। इनमें 4-6 कमांडो शामिल होते हैं। इसके अलावा दिल्‍ली पुलिस और सीआरपीएफ के जवान भी होते हैं। Z+ श्रेणी में 58 सुरक्षाकर्मी होते हैं। इनमें 10 से अधिक एनएसजी कमांडो होते हैं। सिक्‍योरिटी में एक बुलेटप्रूफ कार और 2 एस्‍कॉर्ट वाहन भी मिलते हैं। प्रधानमंत्री को इन सबसे अलग एसपीजी सुरक्षा मिलती है।

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Oct 12 2023, 18:41

फ्लिपकार्ट-अमेज़न सेल में कुछ भी आर्डर करने से पहले पढ़ ले ये खबर, हो रही है बेईमानी

ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म्स Amazon एवं Flipkart पर सेल चल रही है। दोनों ही प्लेटफॉर्म्स पर विभिन्न ऑफर्स प्राप्त हो रहे हैं, मगर इसके साथ ही लोग शिकायत भी कर रहे हैं। शिकायत इन प्लेटफॉर्म्स पर किए गए वादों को लेकर। दरअसल, दोनों ही ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म ने सेल से पहले कई ऑफर्स को टीज किया, मगर लोगों को ये ऑफर्स प्राप्त हुए ही नहीं। कुछ यूजर्स के तो ऑर्डर भी कैंसिल हो रहे हैं, तो कुछ को गलत तरीके से प्रमोट किया जा रहा है। इतना ही नहीं, कुछ प्रोडक्ट्स के ऑर्डर पर तो भाव से पहले EMI को बोल्ड में दिखाया जा रहा है। मतलब जब आप किसी प्रोडक्ट्स के पेज पर पहुंचते हैं, तो वहां पर आपको उसका ऐक्चुअल प्राइस तो छोटा सा नजर आएगा, मगर EMI को बहुत हाईलाइट करके दिखाया जा रहा है। 

वही अब आप सोचेंगे कि इसमें क्या गलत है। दरअसल, इस प्रकार से EMI प्राइस को दिखाने से कई लोगों को ये वास्तविक प्राइस लग सकती है। उन्हें लगता है कि 70 हजार का भाव वाले लैपटॉप को वो 11 हजार रुपये में खरीद रहे हैं। जबकि ये तो उस प्रोडक्ट की मंथली EMI है। इसके कारण कुछ एक लोग तो प्रोडक्ट पर्चेज तक पहुंच जा रहे हैं। शायद किसी ने इन प्रोडक्ट्स की EMI को डिस्काउंट प्राइस समझकर खरीदा भी हो। 

MRP पर छूट

दूसरा मामला है गलत तरीके से डिस्काउंट दिखाने का है। वैसे तो ये कंपनियां सेल में MRP पर छूट दिखाकर कई प्रोडक्ट्स को बेचती हैं। इसे ऐसे समझ सकते हैं कि किसी ब्रांड ने एक प्रोडक्ट को पेश किया 20 हजार रुपये में, मगर उसके बॉक्स पर MRP 25 हजार रुपये प्रिंट होता है। ऐसे में यदि ये प्रोडक्ट सेल में 18 हजार का प्राप्त हो रहा है, तो ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म इस पर 7 हजार रुपये का डिस्काउंट दिखाते हैं। कुछ मामलों में ये भी देखा गया है कि इन प्लेटफॉर्म्स ने बॉक्स पर लिखे MRP से भी अधिक दाम पर इन डिवाइसेस को लिस्ट दिखाया है, जिससे लोगों को लगे कि ये प्रोडक्ट आधी से भी कम कीमत पर मिल रहा है। इसके अतिरिक्त कई लोग प्रोडक्ट कैंसिल होने की भी शिकायत कर रहे हैं। उपभोक्ताओं का कहना है कि उन्होंने प्रोडक्ट्स को कई हजार के डिस्काउंट पर ऑर्डर किया था, मगर बाद में ऐमेजॉन ने ऐसे ऑर्डर्स को कैंसिल दिया है। दरअसल, कई लोगों ने Samsung Galaxy Buds Pro 2 को 3 हजार रुपये से कम कीमत पर खरीदा था, जिसका ऐक्चुअल प्राइस 10 हजार रुपये से अधिक है। 

कंपनी ने कई उपयोगकर्ताओं के ऑर्डर को कैंसिल कर दिया, तो कुछ लोगों को फेक प्रोडक्ट्स डिलीवर हुए हैं। प्रोडक्ट्स कैंसिल करने को लेकर Amazon ने कहा है कि यूजर्स को ये भाव किसी टेक्निकल ग्लिच के कारण दिख रही थी। इस कारण उन्हें ऑर्डर कैंसिल करना पड़ रहा है। वही ऐसा ही कुछ Flipkart ने भी किया है। 

दरअसल, फ्लिपकार्ट ने सेल से पहले प्राइस लॉक का फीचर लॉन्च किया था। इसकी सहायता से लोग एक निश्चित राशि देकर किसी प्रोडक्ट्स को लोएस्ट प्राइस पर लॉक कर सकते है तथा बाद में उसे खरीद सकते हैं। कई लोगों की शिकायत है कि उन्होंने इस फीचर का इस्तेमाल करते हुए पास खरीदा तथा प्राइस लॉक किया। लेकिन इसका कोई फायदा नहीं प्राप्त हुआ। कंपनी उन्हें अब बढ़े हुए भाव दिखा रही है। इसके अतिरिक्त 2000 रुपये के कूपन पास पर डिस्काउंट भी अप्लाई नहीं हो रहा है। इस मामले में कंपनी का कहना है कि ऐसा इसलिए हो रहा है क्योंकि सेलर निरंतर प्राइस को बदल रहा है।

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Oct 12 2023, 17:38

जीएसटी मामले में CBIC ने गंगाजल पर साफ की स्थिति, कहा- पूजा सामग्री जीएसटी के दायरे से बाहर

केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर और सीमा शुल्क बोर्ड ने स्पष्ट किया है कि ‘गंगाजल’ को जीएसटी से छूट दी गई है। सीबीआईसी ने कहा है कि देश भर के घरों में पूजा में गंगाजल का उपयोग किया जाता है और इस पूजा सामग्री को जीएसटी के तहत छूट दी गई है। 18-19 मई 2017 और 3 जून 2017 को हुई जीएसटी परिषद की क्रमशः 14वीं और 15वीं बैठक में पूजा सामग्री पर जीएसटी पर विस्तार से चर्चा की गई और उन्हें छूट सूची में रखने का निर्णय लिया गया। इसलिए, जीएसटी लागू होने के बाद से ही इन सभी वस्तुओं को जीएसटी से बाहर रखा गया है।

इसस पहले कांग्रेस ने गंगाजल पर कथित तौर पर 18 प्रतिशत माल एवं सेवा कर (जीएसटी) लगाने के लिए गुरुवार को मोदी सरकार की आलोचना की थी और इसे लूट व पाखंड की पराकाष्ठा करार दिया था।

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने ट्विटर (अब एक्स) पर एक पोस्ट में कहा, ”मोदी जी, मोक्ष प्रदाता मां गंगा का महत्व एक आम भारतीय के लिए जन्म से लेकर जीवन के अंत तक बहुत अधिक है। यह अच्छा है कि आप आज उत्तराखंड में हैं, लेकिन आपकी सरकार ने पवित्र गंगा जल पर ही 18% जीएसटी लगा दिया है।” उन्होंने कहा, “आपने एक बार भी नहीं सोचा कि उन लोगों पर क्या असर पड़ेगा जो अपने घरों में गंगाजल रखने इसे ऑर्डर देकर मंगाते हैं। यह आपकी सरकार की लूट और पाखंड की पराकाष्ठा है।”

इसके बाद सीबीआईसी की ओर से इस मसले पर स्थिति साफ की और बताया कि गंगाजल को जीएसटी लागू होने के बाद से ही कर के दायरे से बाहर रखा गया है।

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Oct 12 2023, 16:19

*क्या गंगा जल पर भी देना होगा जीएसटी? खरगे ने मोदी सरकार से पूछा सवाल*

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क्या गंगा जल पर गुड्स एंड सर्विस टैक्स या जीएसटी लग गया है? कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे की माने तो मोदी सरकार ने गंगाजल पर 18% जीएसटी लगा दिया है।कांग्रेस ने गंगाजल पर कथित तौर पर 18 प्रतिशत माल एवं सेवा कर (जीएसटी) लगाने के लिए गुरुवार को को मोदी सरकार की आलोचना की और इसे लूट और पाखंड की पराकाष्ठा करार दिया।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के गुरुवार के उत्तराखंड के एक दिवसीय दौरे के बीच कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने ट्वीट किया। इस ट्वीट में खरगे ने लिखा 'एक आम भारतीय के जन्म से लेकर उसके जीवन के अंत तक मोक्षदायिनी मां गंगा का महत्व बहुत ज्यादा है। अच्छी बात है कि आप आज उत्तराखंड में हैं, पर आपकी सरकार ने तो पवित्र गंगाजल पर ही 18% जीएसटी लगा दिया है। एक बार भी नहीं सोचा कि जो लोग अपने घरों में गंगा जल मंगवाते हैं, उनपर इस का बोझ क्या होगा। यही आपकी सरकार के लूट और पाखंड की पराकाष्ठा है।

भूपेश बघेल भी कर चुके हैं जीएसटी पर सवाल

इससे पहले छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल भी गंगाजल पर जीएसटी लगाने को लेकर सवाल उठा चुके हैं। उन्होंने कहा था कि भाजपा हर तरफ से केवल कमाना चाहती है। इसी के साथ उन्होंने सवाल किया था कि क्या लोग पूजा पाठ न करे? बीजेपी धर्म की बात करती है लेकिन गंगाजल पर उन्होंने जीएसटी क्यों लगाया? जीएसटी लगाने से घर पर गंगाजल मंगवाने पर पहले से ज्यादा कीमत चुकानी होगी।