सोनभद्र में पुलिस अधीक्षक अभिषेक वर्मा के निर्देशन में कार्रवाई  'ऑपरेशन क्लीन' के तहत 14,311 लीटर अवैध शराब पर चला बुलडोजर
विकास कुमार सोनभद्र। जनपद में अपराधियों और अवैध कारोबारियों के विरुद्ध चलाए जा रहे 'ऑपरेशन क्लीन' के तहत पुलिस को एक बड़ी सफलता मिली है। पुलिस अधीक्षक अभिषेक वर्मा के निर्देशन में कार्रवाई करते हुए रॉबर्ट्सगंज पुलिस ने मजिस्ट्रेटीय समिति की निगरानी में भारी मात्रा में जब्त की गई अवैध अंग्रेजी शराब को नष्ट कर दिया।

न्यायालय के आदेश पर हुई कार्रवाई
मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट, सोनभद्र द्वारा 19 नवंबर 2024 को जारी आदेश के अनुपालन में यह विनष्टीकरण प्रक्रिया अपनाई गई। बुधवार (24 दिसंबर) को रॉबर्ट्सगंज थाना क्षेत्र के अंतर्गत जेसीबी मशीन से गहरा गड्ढा खोदकर कुल 14,311 लीटर अवैध शराब को जमींदोज किया गया।

इन मुकदमों से जुड़ी थी खेप नष्ट की गई शराब रॉबर्ट्सगंज थाने में दर्ज दो बड़े मामलों से संबंधित थी। मु0अ0सं0 171/2024: इस मामले में वाहन (HR 55 S 1638) से 5,400 लीटर (600 पेटी) शराब बरामद की गई थी। मु0अ0सं0 536/2023: इस पुराने मामले में ट्रक (HR 45 B 0051) से 8,911 लीटर (21,936 शीशी) अवैध शराब पकड़ी गई थी।

समिति की निगरानी में पारदर्शिता
पूरी प्रक्रिया की पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए एक विशेष समिति का गठन किया गया था। इस दौरान क्षेत्राधिकारी नगर रणधीर मिश्रा, नायब तहसीलदार विशाल कुमार, अभियोजन अधिकारी श्रीकांत सिंह और प्रभारी निरीक्षक रॉबर्ट्सगंज माधव सिंह मौके पर मौजूद रहे।
ओबरा में अवैध खनन की कवरेज करने गए पत्रकारों को जान से मारने की धमकी, थाने में शिकायत दर्ज क्या है पूरा मामला
विकास कुमार सोनभद्र। जनपद के ओबरा खनन क्षेत्र में अवैध गतिविधियों का कवरेज करने पहुंचे पत्रकारों को दबंगों द्वारा जान से मारने की धमकी देने का गंभीर मामला प्रकाश में आया है। इस संबंध में पीड़ित पत्रकारों ने ओबरा थाने में तहरीर देकर सुरक्षा की गुहार लगाई है और आरोपियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग की है।

क्या है पूरा मामला
जानकारी के अनुसार, ओबरा के बिल्ली मारकुंडी क्षेत्र में स्थित बजरंग स्टोन पत्थर खदान में बुधवार को विभागीय जांच टीम के आने की सूचना मिली थी। समाचार संकलन के लिए जब पत्रकार अरविंद कुशवाहा अपने साथियों के साथ मौके पर पहुंचे, तो वहां तैनात खनन संचालक के गुर्गों ने उन्हें रोक लिया।

पीड़ित पत्रकार का आरोप है कि धीरज राय के साथी ने उनके साथ अभद्र और अशोभनीय भाषा का प्रयोग किया। पत्रकारों को स्पष्ट चेतावनी दी गई कि यदि वे वहां से नहीं गए या फोटो-वीडियो बनाने की कोशिश की, तो उन्हें "खदान में धकेल दिया जाएगा, जिससे उनका नामोनिशान मिट जाएगा।"

डेंजर जोन में तब्दील हो चुकी हैं खदानें
गौरतलब है कि यह क्षेत्र पिछले दिनों कृष्ण माइंस में सात मजदूरों की मौत के बाद से ही चर्चा में है। ओबरा के इस खनन क्षेत्र में नियमों की धज्जियां उड़ाकर मनमानी की जा रही है।
* बंद खदानें: नियमों के उल्लंघन के कारण प्रशासन अब तक 37 खदानों को बंद कर चुका है।
* अवैध बैरिकेडिंग: अवैध गतिविधियों को छिपाने के लिए खदान मालिकों ने चारों तरफ बैरिकेड लगा दिए हैं ताकि कोई भी बाहरी व्यक्ति या मीडियाकर्मी वीडियो न बना सके।
* डीजीएमएस के मानक: सुरक्षा मानकों (DGMS) की अनदेखी के कारण कई खदानें 'डेंजर जोन' घोषित हो चुकी हैं, जिससे कभी भी बड़ा हादसा होने की आशंका बनी रहती है।

जांच से बौखलाए खदान मालिक
लगातार हो रहे खबरों के प्रकाशन और शासन-प्रशासन की सख्ती से खनन माफियाओं में बौखलाहट है। खदान मालिक अपनी अवैध गतिविधियों के उजागर होने के लिए सीधे तौर पर पत्रकारों को जिम्मेदार मान रहे हैं। इसी रंजिश के चलते पत्रकारों को डराने-धमकाने और कवरेज से रोकने की घटनाएं बढ़ गई हैं।

फिलहाल, ओबरा पुलिस ने पत्रकारों की शिकायत ले ली है और मामले की जांच शुरू कर दी है। पत्रकारों ने मांग की है कि लोकतंत्र के चौथे स्तंभ पर हमला करने वाले और अवैध खनन में लिप्त दबंगों पर कड़ी कार्रवाई की जाए।
सोनभद्र खनन हादसा: 7 शव बरामद, दर्जन भर फंसे! मजदूर नेता मंगल तिवारी ने सीएम योगी से की भ्रष्टाचार में लिप्त अधिकारियों जांच की मांग

सोनभद्र। उत्तर प्रदेश: सोनभद्र जिले के बिल्ली-मारकुण्डी घाटी में बीते शनिवार को हुए भयंकर खनन हादसे ने प्रदेश में श्रमिकों की सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। इस हृदय विदारक दुर्घटना में बचाव दल द्वारा अब तक 7 मजदूर मृतकों के शव बरामद किए जा चुके हैं, जबकि अभी भी लगभग एक दर्जन मजदूरों के मलबे में फंसे होने की आशंका व्यक्त की जा रही है।

हादसे पर गहरा दुःख व्यक्त करते हुए, मजदूर नेता एवं वरिष्ठ पत्रकार मंगल तिवारी ने इस मामले में गहन जांच की मांग उठाते हुए बड़ा बयान दिया है। उन्होंने सीधे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी को संबोधित करते हुए एक पत्र लिखा है, जिसमें उन्होंने खदानों में होने वाले श्रमिकों की मौत की गहराई से जांच कराने तथा खनन कारोबारियों से लगाए संबंधित विभाग एवं संलिप्त लोगों की संपत्तियों की जांच की मांग की है।

सीएम योगी को पत्र में मुख्य मांगें

मिर्ज़ापुर असंगठित कामगार यूनियन (माकू यूनियन) के महामंत्री मंगल तिवारी ने मुख्यमंत्री से निवेदन भरे शब्दों में कहा है कि यदि उनके प्रत्यक्ष नियंत्रण वाले मंत्रालय में भी कुछ अधिकारियों की मिलीभगत से भ्रष्टाचार तथा अपने पद एवं दायित्वों के प्रति घोर लापरवाही बरती जा रही है, तो अन्य मंत्रालयों की स्थिति का अनुमान सहज ही लगाया जा सकता है।

माकू यूनियन ने उत्तर प्रदेश सरकार की शून्य सहनशीलता (Zero Tolerance) नीति पर पूर्ण विश्वास व्यक्त करते हुए निम्नलिखित निष्पक्ष जांचों की मांग की है:

 दोषी अधिकारियों की जांच: खनन विभाग के संबंधित अधिकारी, स्थानीय पुलिस अधिकारी, सहायक निदेशक कारखाना (ADF) तथा श्रम विभाग के संबंधित मॉनिटरिंग अधिकारी (सहायक श्रमायुक्त, उप श्रमायुक्त) की भूमिका एवं दायित्वों की निष्पक्ष जांच कराई जाए।

 संपत्ति की विस्तृत जांच: दोषी पाए जाने वाले अधिकारियों एवं लीज धारकों की संपत्ति की विस्तृत जांच की जाए।

 स्वतंत्र एजेंसी से जांच: इस घटना सहित विगत दो वर्षों में खनन क्षेत्र में मजदूरों के साथ हुई दुर्घटनाओं एवं मौतों की जांच किसी स्वतंत्र एजेंसी से कराई जाए।एनजीटी मानकों पर जांच: मिर्जापुर-सोनभद्र के सभी खनन पट्टों की एनजीटी (NGT) के मानकों के तर्ज पर जांच कराई जाए।

 समान आर्थिक सहायता: सभी दिवंगत श्रमिक आश्रितों को एक समान आर्थिक सहायता मिले।

"यह परिस्थिति शासन-प्रशासन की निगरानी व्यवस्था पर गंभीर प्रश्नचिह्न उत्पन्न करती है।"

मंगल तिवारी, मजदूर नेता एवं वरिष्ठ पत्रकार

भविष्य के लिए बड़े आंदोलन की चेतावनी

मंगल तिवारी ने बताया कि माकू यूनियन श्रमिकों के लिए पूर्ण रूप से समर्पित संगठन है, जिसका एकमात्र लक्ष्य श्रमिकों और उनके परिवार का उत्थान, उनको मान सम्मान और अधिकार दिलाना है। उन्होंने साफ तौर पर कहा कि यूनियन का उद्देश्य केवल इतना है कि प्रदेश में कार्यरत श्रमिक भाइयों को सुरक्षा का अधिकार मिले तथा इस भीषण घटना में मारे गए श्रमिकों के परिजनों को शीघ्र न्याय मिल सके।

मंगल तिवारी ने बड़ी चेतावनी देते हुए कहा है कि जल्द ही सोनभद्र जिले में श्रमिकों के हक अधिकारों को लेकर एक बड़ा आंदोलन खड़ा किया जाएगा, ताकि प्रति वर्ष खदानों में खाक होती मजदूरों की जिंदगी को बचाया जा सके और उन पूँजिपतियों से लेकर सफेदपोशों के कारनामों का भी खुलासा किया जा सके जो इन मजदूरों के कंधों का उपयोग कर अपने लिए सुख-सुविधाएं तो बना लेते हैं लेकिन मजदूरों की जिंदगी जस की तस ही बनी रह जाती है।

सोनभद्र खदान हादसा: ड्रिलिंग के दौरान चट्टान धसी, पांच मजदूरों की मौत, मलबे में दबे अन्य 10 से अधिक लोग, एनडीआरएफ-एसडीआरएफ की राहत अभियान जारी

सोनभद्र । ओबरा थाना क्षेत्र के बिल्ली मारकुंडी खदान में शनिवार दोपहर हुए भयानक हादसे ने मजदूरों और उनके परिवारों को हिला कर रख दिया है। खदान में ड्रिलिंग के दौरान अचानक चट्टान धसक गई, जिससे कम से कम 15 मजदूर मलबे में दब गए। दो दिन के लगातार रेस्क्यू अभियान के बाद अब तक पांच शव बरामद किए जा चुके हैं, जबकि अन्य मजदूरों की तलाश युद्धस्तर पर जारी है।

मृतकों की पहचान

अमरिनिया टोला, परसोई ग्राम पंचायत, ओबरा: राजू सिंह गोंड (शव रविवार की सुबह बरामद)

पनारी ग्राम पंचायत, करमसार टोला: संतोष यादव (30), इंद्रजीत यादव (32)

कोन, कचनरवा गांव: रविंद्र उर्फ नानक

एक अन्य मजदूर की पहचान अभी नहीं हो पाई है।

शवों को पोस्टमार्टम के लिए जिला अस्पताल भेजा गया है। पहचान के लिए केवल मृतकों के स्वजन ही पोस्टमार्टम हाउस में प्रवेश कर पा रहे हैं।

रेस्क्यू ऑपरेशन और मुश्किलें

एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और सीआईएसएफ की 100 से अधिक जवानों की टीम मलबे में दबे मजदूरों को बचाने के लिए लगातार काम कर रही है। खदान की गहराई लगभग 150–200 फीट है और भारी मलबा बचाव कार्य में सबसे बड़ी चुनौती बन रहा है।एक बड़ी चट्टान के नीचे कई मजदूर फंसे हुए हैं, जिसे तोड़ने में काफी समय लग रहा है।बचाव दल रात-दिन जुटा हुआ है, लेकिन मलबे और अंधेरे की स्थिति में रेस्क्यू की गति अपेक्षित नहीं रही।प्रशासन ने दुर्घटना स्थल को अति संवेदनशील क्षेत्र घोषित कर, आम लोगों और मीडिया का प्रवेश रोक दिया है।

हादसे का समय और कारण

हादसा शनिवार दोपहर करीब ढाई बजे हुआ।श्री कृष्णा माइनिंग वर्क्स कंपनी की पत्थर खदान में ब्लास्टिंग के लिए ड्रिलिंग का काम चल रहा था।नौ कंप्रेशर मशीनों पर 18 मजदूर काम कर रहे थे।अचानक एक तरफ से चट्टान धसक गई और मलबा लगभग 150 फीट नीचे गिर गया।तीन मजदूर किसी तरह बचकर बाहर आए, लेकिन अन्य 15 से अधिक मजदूर मलबे में फंस गए।

प्रशासनिक पहल और सुरक्षा उपाय

ओबरा के एसपी और सीओ सिटी रणधीर मिश्र की अगुवाई में सुरक्षा बल तैनात हैं।जिलाधिकारी बीएन सिंह ने कहा कि मजिस्ट्रियल जांच के आदेश दिए गए हैं।दुर्घटना के कारणों और जिम्मेदारों का जल्द पता लगाया जाएगा।सुरक्षा कारणों से दुर्घटना स्थल पर आम जनता और बाहरी लोगों का प्रवेश प्रतिबंधित किया गया है।

गांवों में मातम और हाहाकार

मलबे में फंसे मजदूरों के परिवार शोकाकुल हैं।आसपास के गांवों में हाहाकार मचा हुआ है, क्योंकि कई परिवार अब भी अपने परिजनों की तलाश में हैं।राहत कार्य में हरसंभव प्रयास किया जा रहा है कि दबे हुए मजदूरों को सुरक्षित बाहर निकाला जा सके।अधिकारियों का कहना है कि मलबे की बड़ी चट्टान को हटाने के बाद ही बचे हुए मजदूरों की संख्या और स्थिति पूरी तरह स्पष्ट हो पाएगी।राहत और बचाव अभियान जारी है, और प्रशासन द्वारा पूरे क्षेत्र में सुरक्षा और सावधानी बरती जा रही है।

जो कौम अपने हक की आवाज नहीं उठा सकती वह सिर्फ लाशे उठाती है : सुरज प्रसाद चौबे राष्ट्रीय अध्यक्ष

राष्ट्रीय सवर्ण आर्मी भारत के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुरज प्रसाद चौबे के गृह जनपद सोनभद्र पहुंचने पर सवर्ण समाज के लोगों ने गर्म जोशी से स्वागत अभिनंदन किया अपने उद्बोधन में कहा कि सवर्ण समाज के अस्तित्व की लड़ाई मजबूती से जमीनी स्तर पर लड़ रहे हैं आज सवर्ण हर तरह से उपेक्षित हो रहे हैं,सवर्ण बच्चे कुंडा से ग्रसित हैं,नशे की प्रवित्र बढ़ रही हैं इसे हम सभी को रोकना होगा आने वाली पीढ़ी के भविष्य को बचाना ही मेरा प्रमुख उद्देश्य है,समाज को संगठित कर उनके मौलिक अधिकारों को संरक्षित करना है समाज को आरक्षण एससीएसटी एक्ट से मुक्त करने का बीड़ा उठाए हैं जिसके लिए राष्ट्रीय सवर्ण आर्मी भारत की पूरी कार्यकारिणी जमीनी स्तर पर काम कर रही है,समाज को जागना होगा अभी भी राजनीतिक दलों दल से जुड़े सवर्ण नेताओं के गुड गान करने समाज के बहुतायत लोग लगे हैं जबकि सवर्ण नेता सपने में भी अपने समाज की बात नहीं कर रहे हैं भारत ही ऐसा देश है जहां के युवा अपने भविष्य की चिंता न करके राजनीतिक दलों के नेताओं का भविष्य बना रहे हैं जो केम अपने हक की आवाज नहीं उठा सकती वह लाशे उठाने का काम करती है, बीजेपी सरकार जिससे सवर्ण समाज को काफी उम्मीद थी वह भी आज जय भीम कर रही है बीजेपी सरकार ने नीट में आरक्षण, बीजेपी सरकार मध्यप्रदेश में 73% आरक्षण , बीजेपी सरकार ने जातिगत जनगणना लाई वोट हिन्दू के नाम पर सुविधा जाती के नाम पर वोट बैंक के लिए कर रही है जबकि सवर्ण की पार्टी कही जाती है लेकिन सवर्ण नेता कभी भी न डाक में न दल के बाहर जातिगत आरक्षण एससीएसटी एक्ट का विरोध किए ये सभी सिर्फ लाशे उठाने का काम कर रहे हैं।

चोपन थाने की कमान नवागत थाना प्रभारी(SHO)' कुमुद शेखर के हाथ'मीडिया हब पत्रकार काउंसिल (MHC) ने किया स्वागत!

विकास कुमार सोनभद्र। चोपन थाने में नए थाना प्रभारी (एसएचओ) के रूप में कुमुद शेखर सिंह ने पदभार संभाला है। इससे पहले वे शक्तिनगर में तैनात थे। पदभार संभालते ही उन्होंने सबसे पहले थाने के सभी पुलिसकर्मियों से मुलाकात कर उनका परिचय लिया और पूरे थाने का जायजा भी लिया। उन्होंने कहा कि क्षेत्र में अमन-चैन बनाए रखना, अपराधियों पर लगाम लगाना और कानून-व्यवस्था को बेहतर बनाना उनकी पहली प्राथमिकता होगी।

मीडिया हब पत्रकार काउंसिल ने किया स्वागत

चोपन में पदभार संभालने के बाद मीडिया हब पत्रकार काउंसिल के सभी सदस्यों और पदाधिकारियों ने कुमुद शेखर सिंह से एक शिष्टाचार मुलाकात की। इस मुलाकात के दौरान काउंसिल के सदस्यों ने उन्हें संस्था के उद्देश्यों और कार्यों के बारे में जानकारी दी।

काउंसिल के जिला उपाध्यक्ष विकास कुमार, मीडिया प्रभारी मुकेश कुमार और कार्यवाहक अध्यक्ष लाल बहादुर सिंह ने एसएचओ कुमुद शेखर सिंह को भगवान बुद्ध की प्रतिमा भेंट की। वहीं, जिला अध्यक्ष कैलाश बिहारी ने माला पहनाकर उनका स्वागत किया और शुभकामनाएं दीं।

जनसमस्याओं पर हुई चर्चा

मुलाकात के दौरान मीडिया हब पत्रकार काउंसिल के सदस्यों ने एसएचओ कुमुद शेखर सिंह को डाला चौकी क्षेत्र समेत आसपास के इलाकों में हो रही जनसमस्याओं और घटनाओं के बारे में विस्तार से बताया। कुमुद शेखर सिंह ने सभी समस्याओं को ध्यान से सुना और काउंसिल के सदस्यों को एकजुट होकर काम करने की सलाह दी।

नए एसएचओ ने कहा कि उनकी कोशिश रहेगी कि गरीबों और कमजोर लोगों को न्याय मिले और सरकार के निर्देशों का पालन सुनिश्चित हो। उन्होंने यह भी भरोसा दिलाया कि क्षेत्र में कानून-व्यवस्था को बनाए रखने के लिए हर संभव कदम उठाए जाएंगे।

सोनभद्र में बाजार में युवक ने सरेआम नंगी तलवार लहराकर मचाया हड़कंप, पुलिस ने किया गिरफ्तार

विकास कुमार,सोनभद्र।सोनभद्र जिले में एक चौंकाने वाली घटना सामने आई है, जहां एक युवक ने सरेआम नंगी तलवार लहराकर इलाके में दहशत फैला दी। यह घटना रॉबर्ट्सगंज कोतवाली के अंतर्गत आने वाले सुकृत पुलिस चौकी क्षेत्र के मधुपुर बाजार की है, जिसका एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है।

वायरल वीडियो में एक युवक हाथ में तेज तलवार लिए बेखौफ घूमता दिख रहा है। उसकी इस हरकत ने बाजार में मौजूद लोगों के बीच खौफ का माहौल पैदा कर दिया। मधुपुर बाजार कई गांवों का एक प्रमुख केंद्र है, जहां रोजाना भारी भीड़ रहती है। युवक की इस करतूत को देखकर दर्जनों गांवों के लोग घंटों तक परेशान रहे और बाजार में भगदड़ जैसी स्थिति बन गई।

स्थानीय लोगों ने तुरंत सुकृत पुलिस चौकी को इसकी सूचना दी। सूचना मिलते ही, सुकृत चौकी के द्वितीय एसआई रामआसरे यादव, कांस्टेबल राहुल सरोज, कांस्टेबल सुंगध, सिपाही सोनू और अन्य सिपाही मौके पर पहुंचे। पुलिस टीम ने स्थिति को नियंत्रित किया और कुछ ही देर में उस युवक को धर दबोचा।

पुलिस के पहुंचने तक, युवक की कई वीडियो क्लिप्स सोशल मीडिया पर वायरल हो चुकी थीं, जिसमें वह तलवार लहराता दिख रहा है। लोगों में यह भी चर्चा थी कि युवक के पास और भी संदिग्ध हथियार हो सकते हैं।

पुलिस ने युवक को गिरफ्तार कर लिया है और अब आगे की कानूनी कार्रवाई में जुट गई है। इस घटना ने एक बार फिर सार्वजनिक स्थानों पर सुरक्षा और कानून व्यवस्था को लेकर सवाल खड़े कर दिए हैं।

सोनभद्र:जुगैल में ट्रैक्टर पलटा, चालक की दर्दनाक मौत, परिवार में मचा कोहराम

विकास कुमार सोनभद्र । जुगैल थाना क्षेत्र के चौरा गांव में एक दुखद हादसे ने पूरे गांव को शोक में डुबो दिया। खेत की जुताई कर रहे 35 वर्षीय तेज नारायण केवट की ट्रैक्टर पलटने से मौके पर ही मौत हो गई। इस दर्दनाक घटना से उनके परिवार में कोहराम मचा हुआ है।

टीले पर जुताई बनी मौत का कारण

यह हादसा उस वक्त हुआ जब तेज नारायण अपने खेत में ट्रैक्टर से जुताई कर रहे थे। उनका खेत कुछ टीलेनुमा था, जिस पर ट्रैक्टर का संतुलन बिगड़ गया। देखते ही देखते ट्रैक्टर पलट गया और तेज नारायण उसके नीचे बुरी तरह दब गए। आस-पास के लोग जब तक मौके पर पहुंचे, तब तक उनकी सांसें थम चुकी थीं।

हादसे की खबर फैलते ही गांव में अफरा-तफरी मच गई और घटनास्थल पर भारी भीड़ जमा हो गई। लोगों ने तुरंत पुलिस को सूचना दी। जुगैल थाना पुलिस मौके पर पहुंची और शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।

परिवार पर टूटा दुखों का पहाड़

तेज नारायण के अचानक चले जाने से उनके परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है। उनके पीछे उनकी पत्नी और दो छोटे बच्चे हैं। वे अपने परिवार के अकेले कमाने वाले सदस्य थे। उनकी मौत से परिवार की आजीविका पर गहरा संकट आ गया है। पुलिस ने घटना के संबंध में आगे की कार्रवाई शुरू कर दी है। यह दुखद घटना एक बार फिर खेती में सुरक्षा उपायों की कमी को उजागर करती है।

सोनभद्र में पत्रकार हित में हुआ बड़ा फैसला: ओबरा में मीडिया हब काउंसिल(MHC) की बैठक में हुआ मंथन, "पत्रकार सुरक्षा" पर जोर

विकास कुमार सोनभद्र।ओबरा में मीडिया हब काउंसिल (MHC) की एक महत्वपूर्ण बैठक मंगलवार को ओबरा के इलाहाबादी होटल में हुई, जिसने पत्रकारों के सशक्तिकरण और सुरक्षा की दिशा में एक नया अध्याय जोड़ा। बैठक की अध्यक्षता MHC के जिला अध्यक्ष कैलाश बिहारी ने की, जिसमें जिले भर के प्रमुख पदाधिकारी और सदस्य मौजूद रहे।

बैठक का मुख्य उद्देश्य पत्रकार सुरक्षा और संस्था को ज़िले में और अधिक मज़बूत बनाना था। शुरुआत में, जिला अध्यक्ष ने आए हुए सभी सदस्यों को गर्मजोशी से स्वागत किया और उन्हें हब काउंसिल का पहचान पत्र पहनाकर सम्मानित किया। यह सम्मान समारोह दर्शाता है कि काउंसिल अपने सदस्यों के प्रति कितनी प्रतिबद्ध है।

रणनीति पर हुई गहन चर्चा

बैठक के दौरान, संस्था को और अधिक शक्तिशाली बनाने के लिए गहन चर्चा हुई। सदस्यों ने अपने विचार खुलकर रखे। विकास कुमार ने एक अहम सुझाव देते हुए कहा कि क्षेत्रीय पत्रकारों के साथ मिलकर एक बड़ी मीटिंग की जानी चाहिए। इससे पत्रकार बंधुओं को संस्था की नीतियों के बारे में जानकारी मिलेगी और वे बड़ी संख्या में संस्था से जुड़ेंगे, जिससे संस्था और भी मज़बूत होगी।

इस सुझाव का समर्थन करते हुए लाल बहादुर सिंह ने कहा कि मीडिया हब काउंसिल हमेशा पत्रकार हित और पत्रकार सुरक्षा के लिए काम करेगा। उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि काउंसिल किसी भी राजनीतिक गठजोड़ से दूर है और पूरी तरह से पत्रकारों के लिए समर्पित है।

आगामी 9 नवंबर को होगी विस्तृत मीटिंग

सभी सदस्यों की बातों को ध्यान में रखते हुए, जिला अध्यक्ष कैलाश बिहारी ने एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया। उन्होंने घोषणा की कि आगामी 9 नवंबर को क्षेत्र के सभी सम्मानित पत्रकारों के साथ एक विस्तृत मीटिंग आयोजित की जाएगी। इस मीटिंग में संस्था के प्रचार-प्रसार और सदस्यों को जोड़ने की रणनीति पर विशेष ध्यान दिया जाएगा।

बैठक में यह भी बताया गया कि काउंसिल अपने सदस्यों के लिए निःशुल्क दुर्घटना बीमा की सुविधा देती है। इसके अलावा, यह संस्था समय-समय पर विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट कार्य करने वाले और वरिष्ठ नागरिकों को सम्मानित करती है। राष्ट्रीय अध्यक्ष इसरार खान द्वारा दिए गए दिशा-निर्देशों के अनुसार, इन सभी कार्यक्रमों की रूपरेखा तैयार की जा रही है।

सभी सदस्यों ने एकमत होकर इस बैठक को सफल बनाया और आगे की रणनीति पर काम करने का संकल्प लिया। इस बैठक में लाल बहादुर सिंह, विकास कुमार, मुकेश कुमार, रोहित द्विवेदी, और राजू जायसवाल सहित कई महत्वपूर्ण सदस्य शामिल रहे। यह बैठक सोनभद्र के पत्रकारिता जगत में एक नई उम्मीद जगा रही है।

सोनभद्र:मनरेगा में 'महा-घोटाला' पनारी में! विकास के नाम पर सरकारी 'लूट' और अब 'लीपापोती' का खेल!

विकास कुमार सोनभद्र । सोनभद्र जिले के चोपन ब्लॉक का पनारी क्षेत्र आजकल विकास के नाम पर हुए भ्रष्टाचार का जीता-जागता उदाहरण बन गया है! यहां महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) के तहत ₹10.88 लाख से अधिक की लागत से बने काशी खाड़ी खड़िया नाले पर जल अवरोधक निर्माण कार्य में खुलेआम धांधली सामने आई है। वर्ष 2023 में बना यह निर्माण, अपनी आधी अवधि से भी पहले ही जर्जर होकर दम तोड़ रहा है.

विकास नहीं, ये तो 'सरकारी लूट' है!

22 मार्च, 2023 को शुरू हुआ यह कार्य, जिसकी मौजूदा हालत भ्रष्टाचार की चीख-चीखकर गवाही दे रही है, विकास कार्यों की गुणवत्ता पर गंभीर सवाल उठाता है। कई जगहों पर बड़ी-बड़ी दरारें साफ दिख रही हैं, तो कुछ हिस्से पूरी तरह से टूटकर बिखर चुके हैं। यह सिर्फ एक निर्माण की विफलता नहीं, बल्कि सार्वजनिक धन के घोर दुरुपयोग का एक दुखद और शर्मनाक उदाहरण है.

सूत्रों की मानें तो पनारी में विकास के नाम पर खुला लूट तंत्र चल रहा है! जंगल से मिट्टी हटाने और पत्थर निकालने के नाम पर लाखों रुपये हजम कर लिए गए। इसे विकास कहना गलत होगा, यह तो सरकारी तिजोरी पर सुनियोजित डाका है.

भ्रष्टाचार उजागर होते ही 'लीपापोती' शुरू!

जैसे ही इस महा-भ्रष्टाचार की खबर बाहर आई, कुछ जिम्मेदार अधिकारी आनन-फानन में सीमेंट और बालू लेकर लीपापोती करने पहुंच गए। यह हरकत साफ दर्शाती है कि यदि शुरुआत में ही काम ईमानदारी से हुआ होता, तो आज इस तरह अपनी गलतियों पर पर्दा डालने की नौबत ही नहीं आती। यह अधिकारियों की जवाबदेही से बचने की साफ कोशिश है.

अधिकारियों की भूमिका पर बड़ा सवाल!

सबसे बड़ा सवाल यह है कि इस ₹10.88 लाख के निर्माण कार्य की गुणवत्ता की निगरानी कौन कर रहा था? किस आधार पर इस घटिया काम को पास किया गया? क्या संबंधित अधिकारियों ने निर्माण के दौरान कोई जांच नहीं की, या फिर जानबूझकर भ्रष्टाचार को अनदेखा किया गया? यह मामला स्थानीय प्रशासन और संबंधित विभागों की कार्यप्रणाली पर गहरा संदेह पैदा करता है और उनकी जवाबदेही पर सीधा प्रश्नचिन्ह लगाता है।

पनारी: 'विकसित' गाँव की कड़वी सच्चाई!

पनारी गाँव, जिसकी आबादी 35 हजार के करीब है और जिसमें 64 टोले शामिल हैं, चोपन ब्लॉक का एक विशाल और महत्वपूर्ण गाँव है। 20 से 22 किलोमीटर के दायरे में फैले इस गाँव में पांच रेलवे स्टेशन - सलईबनवा, फफराकुंड, मगरदहा, ओबरा डैम और गुरमुरा - भी हैं। 2020 में यहां 16344 मतदाता थे, जो अब 21 हजार तक पहुंच चुके हैं.

लेकिन इस तथाकथित 'विकसित' गाँव की कड़वी सच्चाई यह है कि अदरा कूदर,

छत्ताडांड, ढोढहार जैसे कई टोले, जहां प्रत्येक में करीब 700 की आबादी है, आज भी बिना बिजली और बिना स्कूल के अंधेरे में जी रहे हैं। यह विडंबना साफ दर्शाती है कि एक तरफ जहां विकास के नाम पर लाखों रुपये पानी में बहाए जा रहे हैं और उन पर भी भ्रष्टाचार हो रहा है, वहीं दूसरी तरफ बुनियादी सुविधाओं के लिए भी लोग तरस रहे हैं.

अब जनता को उठानी होगी आवाज!

भ्रष्ट निर्माण कार्य सीधे तौर पर जनता के विश्वास को ठेस पहुंचाते हैं और उनके जीवन पर नकारात्मक प्रभाव डालते हैं। ऐसे मामलों में त्वरित और कठोर कार्रवाई की नितांत आवश्यकता है। संबंधित अधिकारियों और ठेकेदारों के खिलाफ निष्पक्ष जांच कर उन्हें सख्त से सख्त सजा मिलनी चाहिए ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।

यह समय है कि जनता भी इस पर चुप न रहे। अपनी आवाज उठाना, सवाल पूछना और प्रशासन को जवाबदेह ठहराना हम सबका कर्तव्य है, ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि हमारे गाँव और क्षेत्रों में विकास के नाम पर भ्रष्टाचार का ऐसा खेल फिर कभी न हो। पनारी के लोगों को अब अपने अधिकारों के लिए खुलकर सामने आना होगा और इन भ्रष्ट अधिकारियों व ठेकेदारों पर लगाम कसनी होगी.