रिचार्ज कराओ नहीं तो घर में रहेगा अंधेरा’… राजस्थान में आ गया नया नियम, पढ़ लें बिजली उपभोक्ता
राजस्थान की मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की सरकार बिजली उपभोक्ताओं के लिए एक बड़ा बदलाव करने जा रही है. राजस्थान में बीजली अब मोबाइल फोन की तरह प्रीपेड हो जा रही है. मतलब बिजली का उपभोग करने से पहले उपभोक्ता को उसका भुगतान (रिचार्ज) करना आवश्यक होगा. प्रदेश भर में लगभग 1.43 करोड़ घरेलू और व्यावसायिक बिजली उपभोक्ताओं (कृषि को छोड़कर) के घर के कनेक्शन पर स्मार्ट मीटर लगाने की शुरुआत हो चुकी है.
इन स्मार्ट मीटरों की विशेषता ये है कि उपभोक्ता ने पहले जितनी बिजली के लिए भुगतान किया होगा वो सिर्फ उतनी ही बिजली चला पाएगा. राज्य सरकार केंद्र सरकार की रिवैम्प्ड डिस्ट्रीब्यूशन सेक्टर स्कीम के तहत ये बदलाव करने जा रही है. इस योजना पर 14,037 करोड़ रुपयों का खर्च आएगा. अभी तक उपभोक्ता बिजली का उपयोग करने के बाद बिल भरते थे, लेकिन अब उनको बिजली का उपयोग करने से पहले भुगतान देना होगा.
उपभोक्ताओं के लिए क्या होंगी सुविधाएं
इस स्कीम के लागू होने से उपभोक्ता रोज मोबाइल पर बिजली की खपत का अपडेट ले सकेंगे. जब भी बिजली की अचानक जाएगी तो उपभोक्ताओं को बिजली जाने की जानकारी दी जाएगी. बिजली का जब ज्यादा लोड होगा तो उपभोक्ताओं को वॉर्निंग मिलेगी. साथ ही उपभोक्ताओं को 15 पैसे प्रति यूनिट की छूट भी प्राप्त होती रहेगी.
लोगों की जेब पर क्या होगा असर
ये व्यवस्था लंबे समय में उपभोक्ताओं के लिए लाभदायक साबित होगी. ऐसा दावा राजस्थान सरकार ने किया है. उपभोक्ता अपनी बिजली की खपत को कंट्रोल कर सकेंगे. बिना बिल के झंझट के सटीक योजना बना सकेंगे. हालांकि शुरुआती समय में लोगों को पेड रिचार्ज की आदत डालने में थोड़ी कठिनाई आएगी. विशेषकर इस बात को लेकर उन क्षेत्रों में लोग ज्यादा परेशान हो सकते हैं, जहां डिजिटल भुगतान की सुविधा सीमित हो.
योजना के पीछे सरकार का क्या है मसकद
ऐसे में डिस्कॉम्स दो- चार महीने तक पोस्टपेड बिलिंग का विकल्प खुला रख सकते हैं, जब तक की उपभोक्ता नई प्रणाली में सहज नहीं होते. इसके बाद सभी को प्रीपेड स्कीम में स्विच कर दिया जाएगा. इस योजना के पीछे सरकार का मकससद है कि डिस्कॉम्स की आर्थिक स्थिति मजबूत हो, ताकि कंपनियों को समय पर भुगतान हो सके. साथ ही बैंकों से कर्ज पर निर्भरता कम हो. बिजली आपूर्ति में देरी या कटौती से होने वाली परेशानी से उपभोक्ताओं को बचाया जा सके. बिल वितरण और भुगतान की प्रक्रिया में पारदर्शिता आए.
May 02 2025, 17:23