आज किसानों का दिल्ली कूच, बॉर्डर पर बैरिकेडिंग, चप्पे-चप्पे पर पुलिस का पहरा
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पिछले 8 महीने से शंभू बॉर्डर पर धरना दे रहे किसान संगठन एक बार फिर दिल्ली कूच करने के लिए तैयार हैं। एमएसपी लागू करने व अन्य मांगों को लेकर 297 दिन से बॉर्डर पर डटे किसान शुक्रवार दोपहर एक बजे शंभू बॉर्डरों से पैदल दिल्ली कूच करेंगे। किसानों ने इसे 'दिल्ली चलो' आंदोलन नाम दिया है। शंभू-खनौरी बॉर्डरों पर करीब 10 हजार किसान जमा हो गए हैं। इन्हें रोकने के लिए हरियाणा ने दोनों बॉर्डरों पर अर्द्धसैनिक बलों की 29 कंपनियां तैनात की गई हैं। किसानों के दिल्ली मार्च के मद्देनजर पुलिस ने अंबाला-दिल्ली सीमा पर सुरक्षा कड़ी करते हुए बैरिकेडिंग कर दी है।
ये दिल्ली चलो आंदोलन किसान नेता सरवन सिंह पंधेर और जगजीत सिंह डल्लेवाल के नेतृत्व में हो रहा है। अपने फैसले के बारे में बात करते हुए पंधेर ने कहा,'हम यहां पिछले 8 महीनों से बैठे हैं। हमारे ट्रैक्टरों को मॉडिफाइड कहकर हम पर आरोप लगाया गया, इसलिए हमने अब पैदल दिल्ली जाने का फैसला किया है। किसानों के आंदोलन को हरियाणा के खाप पंचायतों और व्यापारिक समुदाय सहित व्यापक समर्थन मिल रहा है।'
101 किसानों का जत्था दिल्ली जाएगा
किसान आंदोलन में शुक्रवार को दिल्ली कूच से पहले अंबाला के शंभू बाॅर्डर पर सुबह दस बजे किसानों ने अरदास की है और श्री गुरु ग्रंथ साहिब को लेकर स्टेज की तरफ गए हैं। यहां पर पुलिस बल की तैनाती भी की गई है। किसान दोपहर बाद दिल्ली जाएंगे। 101 किसानों का जत्था दिल्ली जाएगा। इसमें बुजुर्ग किसानों को शामिल किया गया है।
मार्च में शामिल होंगे ये किसान नेता
आज शंभू बॉर्डर से दिल्ली की ओर किसानों का पहला जत्था रवाना होगा। इस जत्थे में किसान नेता सतनाम सिंह पन्नू, सुरिंदर सिंह चौटाला, सुरजीत सिंह फूल और बलजिंदर सिंह शामिल होंगे। ये जत्था जरूरी सामान लेकर दिल्ली रवाना होगा और शांतिपूर्ण मार्च करेगा। पहला जत्था अंबाला के जग्गी सिटी सेंटर, मोहरा अनाज मंडी, खानपुर जट्टन और हरियाणा के पिपली में रुकने के बाद दिल्ली की ओर बढ़ेगा। आज जत्था 1 बजे रवाना होगा, लेकिन रोजाना किसान 9 बजे सुबह से शाम 5 बजे तक चलेंगे और रात सड़क पर बिताएंगे।
कई किसान नेताओं ने दिल्ली मार्च से बनाई दूरी
किसानों के दिल्ली मार्च से संयुक्त किसान मोर्चा (SKM) ने खुद को अलग कर लिया है. भारतीय किसान यूनियन (चढूनी) के चीफ गुरनाम सिंह चढूनी ने कहा,'हमसे संपर्क नहीं किया गया और न ही हमसे सलाह ली गई, इसलिए अब तक हमने किसी भी मार्च में भाग लेने की कोई योजना नहीं बनाई है. हमने पहले भी समर्थन देने की कोशिश की थी, लेकिन चीजें ठीक नहीं रहीं. वे अपने हिसाब से फैसले ले रहे हैं और हमारी तरफ से कोई हस्तक्षेप नहीं होगा.' ऑल इंडिया किसान सभा (AIKS) के नेता हन्नान मोल्लाह का कहना है कि SKM इस विरोध मार्च में शामिल नहीं है.
किसानों के दिल्ली कूच को लेकर सतर्क हुई दिल्ली और हरियाणा पुलिस
किसानों को रोकने के लिए हरियाणा पुलिस ने एहतियातन शंभू बॉर्डर पर सात स्तरीय बैरिकेडिंग कर दी है। सीमेंट की दीवारों के साथ लोहे की कीलें व कंटीली तार लगाई गई है। इनके अलावा वाटर कैनन वैन व आंसू गैस के गोले फेंकने वाले ड्रोन से सुरक्षा चक्रव्यूह और मजबूत किया गया है। हरियाणा पुलिस ने आगामी आदेश तक पुलिस कर्मियों की छुट्टियां भी रद्द कर दी हैं। दातासिंहवाला बॉर्डर पर पुलिस ने नाकाबंदी की है। इन दोनों सीमाओं से आम लोग आवागमन नहीं कर पाएंगे। सिर्फ ट्रेन के जरिये ही लोग पंजाब जा सकते हैं। इसके अलावा पंजाब से सटे कैथल, कुरुक्षेत्र, सिरसा और फतेहाबाद की सीमाओं पर पुलिस ने चाैकसी बढ़ा दी है। हालांकि अभी यहां से लोगों का आवागमन जारी है। सिरसा के मलोट, बठिंडा और मुसाहिबवाला बाॅर्डर पर एसपी विक्रांत भूषण ने सुरक्षा प्रबंधों का जायजा लिया। पुलिस जवानों की मॉक ड्रिल भी करवाई गई। सिरसा व जींद में भी धारा 163 लागू कर दी गई है। अंबाला में एक दिन पहले ही धारा 163 लगाई जा चुकी है।
Dec 06 2024, 11:36