मुख्यमंत्री साय ने कहा कि “द साबरमती रिपोर्ट” जैसी फिल्म, इतिहास के उस भयावह “सच” को सामने लाने के सराहनीय प्रयास के रूप में देखा जाना चाहिए, जिस “सच” को देश की जनता से हमेशा छुपाने का कुत्सित प्रयास किया गया.
उन्होंने कहा कि इतिहास सबक देता है और उत्तम भविष्य निर्माण का प्रवर्तक बनता है. ऐसी फिल्में समाज के लिए सुलभ होनी चाहिए. इसलिए सरकार ने यह निर्णय लिया है कि राज्य में इसे कर मुक्त किया जाए. छत्तीसगढ़ के अलावा इस फिल्म को मध्यप्रदेश में भी टैक्स-फ्री कर दिया गया है.
    बता दें कि ‘द साबरमती रिपोर्ट’ (The Sabarmati Report) की कहानी 27 फरवरी, 2002 को गोधरा रेलवे स्टेशन पर हुए ट्रेन अग्निकांड पर आधारित है. फिल्म में विक्रांत मैसी एक पत्रकार के रोल में नजर आ रहे हैं. फिल्म में दिखाने की कोशिश की गई है कि आखिर 2002 में उस दिन गोधरा रेलवे स्टेशन पर क्या था, जब साबरमती एक्सप्रेस आग में झुलस रही थी.
दरअसल, उस दिन की कहानी आज भी ज्यादातर लोगों के लिए एक पहेली की तरह हैं, क्योंकि इस पर कभी खुलकर बहुत सारी चीजें सामने आईं ही नहीं. गोधरा ट्रेन अग्निकांड भारत के इतिहास के पन्नों पर दर्ज हो चुका है, जिसके बारे में सोचते ही दिल दहल उठता है.
15 नवंबर को रिलीज हुई फिल्म
‘द साबरमती रिपोर्ट’ का निर्देशन धीरज सरना ने किया है. इसका प्रोडक्शन शोभा कपूर, एकता आर कपूर, अमूल वी मोहन, अंशुल मोहन ने मिलकर किया है. विक्रांत मैसी और राशि खन्ना को फिल्म में लीड रोल में है. इनके अलावा इसमें मशहूर टीवी एक्ट्रेस रिद्धी डोगरा भी अहम भूमिका निभाती दिख रही हैं.

						
  रायपुर-    गोधराकांड पर बनी बहुचर्चित फ़िल्म ‘द साबरमती रिपोर्ट’ को छत्तीसगढ़ में टैक्स-फ्री किया जा रहा है. आज इसकी घोषणा मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने की.
  
रायपुर-  छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग के पूर्व चेयरमैन टामन सोनवानी की गिरफ्तारी के बाद भाजपा को कांग्रेस पर हमला करना का मौका मिल गया है. वित्त मंत्री ओपी चौधरी ने पीएससी घोटाले को लेकर कहा कि यह पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार के शीर्ष नेताओं की शह के बिना संभव नहीं था. परीक्षा में धांधली कर युवाओं के भविष्य से खिलवाड़ करने वाले डबल इंजन सरकार में बख्शे नहीं जाएंगे.
रायपुर-  छत्तीसगढ़ पीएससी के पूर्व चेयरमैन टामन सोनवानी की गिरफ्तारी पर कांग्रेस के आरोप पर मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने पलटवार किया है. उन्होंने कहा कि अगर उन्हें (कांग्रेसियों) लगता है कि फंसाया जा रहा है, तो वे कोर्ट जा सकते हैं, वहां अपील कर सकते हैं. 
रायपुर-   राजधानी रायपुर में सामने आई डबल मर्डर की घटना को भाजपा के वरिष्ठ नेता व विधायक अजय चंद्राकर ने गंभीर बताते हुए कहा कि गृह मंत्री से निवेदन है कि तत्काल कार्रवाई हो. वहीं मृतक के पिता की बातों को अन्यथा नहीं लेने की बात कही. 
रायपुर-  बहुचर्चित रामावतार जग्गी हत्याकांड में आरोपी पूर्व पुलिस अफसर एएस गिल, वीके पांडेय और आरसी त्रिवेदी समेत छह लोगों को सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिल गई है. इन आरोपियों को छह माह पहले दोबारा जेल में दाखिल किया गया था. सभी आरोपी पांच साल से अधिक समय तक जेल में बीता चुके हैं.
  रायपुर-  सीजीपीएससी घोटाला मामले में गिरफ्तार CGPSC के पूर्व चेयरमैन टामन सोनवानी और बजरंग पॉवर इस्पात के डायरेक्टर एसके गोयल को सीबीआई ने आज कोर्ट में पेश किया. विशेष कोर्ट ने दोनों आरोपियों को 25 नवंबर तक सीबीआई रिमांड पर सौंपा. 7 दिनों की रिमांड में सीबीआई आरोपियों से कई बिंदुओं पर पूछताछ करेगी. बता दें कि सीबीआई ने दोनों आरोपियों की 12 दिनों की रिमांड मांगी पर, लेकिन कोर्ट ने 7 दिनों की रिमांड की मंजूरी दी है.
  
रायपुर-     विधानसभा शीतकालीन सत्र को लेकर अधिसूचना जारी हो गई है. इस बार शीतकालीन सत्र की अवधि 4 दिन होने पर कांग्रेस ने भाजपा सरकार पर निशाना साधा है. प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने कहा, विधानसभा सत्र की तिथि घोषित हो गई है. 4 दिन का समय काफी कम है क्योंकि मुद्दे ज्यादा हैं. जनता में सरकार के खिलाफ आक्रोश है. हम सड़क से लेकर सदन तक जनता की लड़ाई लड़ रहे हैं. विधानसभा सत्र की तिथि बढ़ना चाहिए. हम इसकी मांग करते हैं. वहीं सीजीपीएससी मामले में बैज ने कहा, निष्पक्षता से जांच होनी चाहिए. बदले की भावना से जांच नहीं होनी चाहिए.
कोरबा-  जिले की पुलिस को इन दिनों चोर चुनौती देते नजर आ रहे है। जिले और शहर में लगातार रोजाना चोरी की वारदाते हो रही है, जिससे पुलिस की रात्रि गस्त पर भी सवाल खड़े हो रहे हैं। चोरों के हौसले इतने बुलंद है कि वह अब भगवान के घर को भी नहीं बक्श रहे है। ताजा मामला नगर पंचायत पाली से सामने आया है, जहां वार्ड क्रमांक एक मादन मुख्य मार्ग स्थित राज कालिका मंदिर पर चोरों ने धावा बोला और मंदिर में विराजमान मूर्तियों से मुकुट और जेवरात लेकर फरार हो गए, इस दौरान चोर अपने साथ दान पेटी भी साथ ले गए थे।
  
रायपुर-  राजधानी स्थित एमिटी यूनिवर्सिटी में हाल ही में हुई गुंडागर्दी की घटना ने विश्वविद्यालय प्रबंधन की भूमिका पर सवाल खड़े कर दिए हैं. तीन दिन पहले यूनिवर्सिटी के हॉस्टल में चाकूबाजी, कट्टे के बल पर मारपीट और तोड़फोड़ की घटना हुई थी, जिसके बाद आरोपियों के खिलाफ अभी तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं की गई है. छात्र नेताओं ने आरोप लगाया है कि यूनिवर्सिटी प्रबंधन घटना को दबाने में लगा हुआ है और दोषियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई है. वहीं मामले में आज NSUI ने चेतावनी देते हुए प्रबंधन से जल्द कार्रवाई करने की मांग की है।
Nov 19 2024, 18:11
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