अवध विवि में वृक्षारोपण, धरती माँ हम सभी की जीवनदायिनीः कुलपति प्रो0 प्रतिभा गोयल

अयोध्या

डाॅ0 राममनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय के आईईटी परिसर में ‘एक पेड़ माँ के नाम‘ के अन्तर्गत वृहद वृक्षारोपण कार्यक्रम का आयोजन किया गया। विश्वविद्यालय की कुलपति प्रो0 प्रतिभा गोयल ने आम के पौधे रोपित कर वृक्षारोपण का शुभारम्भ किया। इस वृक्षारोपण अभियान में लवकुश व सरयू छात्रवास, आईईटी परिसर, फार्मेसी संस्थान में एक हजार से अधिक वृक्षों को रोपित किया गया। मौके पर कुलपति प्रो0 गोयल ने कहा कि धरती माँ हम सभी जीवनदायिनी है। इसे बचाये रखने के लिए वृक्ष जरूर रोपित करें। उन्होंने कहा कि आने वाली पीढ़ी के लिए पर्यावरण को सुरक्षित रखना होगा। समाज के सभी लोगों को पर्यावरण के महत्व को समझते हुए वृक्ष जरूर रोपित करें। इसके साथ ही समाज को वृक्षारोपण के प्रति जागरूक करें।विश्वविद्यालय के कुलसचिव डाॅ0 अंजनी कुमार मिश्र ने बताया कि वृक्षारोपण अभियान के तहत परिसर में चार हजार वृक्ष रोपित किए जायेंगे। जिसमें प्रथम दिन एक हजार वृक्षरोपित किए गए है। कुलपति प्रो0 गोयल, शिक्षकों, अधिकारियों, कर्मचारियों व विद्यार्थियों द्वारा आम, जामुन, अमरूद, हरसिंगार, शीशम, सागौन के पौधे रोपित किए गए है। इस अभियान में व्यवसाय प्रबंध एवं उद्यमिता विभागाध्यक्ष प्रो0 हिमांशु शेखर सिंह, परीक्षा नियंत्रक उमानाथ, उप कुलसचिव दिनेश मौर्य, डाॅ0 रंजन सिंह, डाॅ0 विजयेन्दु चतुर्वेदी, कर्मचारी संघ के अध्यक्ष राजेश पाण्डेय, शैलेश कुमार मिश्र, मनोज यादव, हनुमान वर्मा, शैलेश यादव, ह्दय राम, मुकेश सोनकर, धर्मेंद्र यादव, मिठाई लाल, आसाराम, अमरनाथ तिवारी, ज्ञान चैधरी सहित बड़ी संख्या में विद्यार्थियों ने पौधारोपण किया।

बीएड व एमएड के परीक्षा फार्म भरने की तिथि विस्तारित

अयोध्या

डाॅ0 राममनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय प्रशासन ने बीएड एवं एमएड प्रथम व द्वितीय वर्ष-2024 की परीक्षा के लिए आनलाइन परीक्षा फार्म भरने की तिथि दो दिन विस्तारित की। विश्वविद्यालय की कुलपति प्रो0 प्रतिभा गोयल ने छात्रहित में अंतिम अवसर प्रदान करते हुए छात्र-छात्राओं के लिए 22 से 23 जुलाई तक परीक्षा फार्म भरने की तिथि बढ़ाई। इस तिथि के बाद छात्र-छात्राओं के परीक्षा फार्म भराये जाने संबंधित प्रत्यावेदन पर विचार नही किया जायेगा।

आनलाइन परीक्षा फार्म को छात्र-छात्राओं द्वारा 23 जुलाई सायं चार बजे तक संबंधित महाविद्यालय एवं संस्थान में जमा करना होगा। वहीं इसी तिथि में देरशाम तक महाविद्यालयों द्वारा परीक्षा फार्म के सत्यापन के बाद 24 जुलाई को छात्र-छात्राओं की सूची परीक्षा विभाग को उपलब्ध करानी होगी । विश्वविद्यालय के परीक्षा नियंत्रक उमानाथ ने बताया कि बीएड एवं एमएड प्रथम व द्वितीय वर्ष की परीक्षा के लिए आनलाइन परीक्षा फार्म भरने की तिथि विस्तारित की गई है। महाविद्यालयों से अपेक्षा की गई है कि छात्र-छात्राओं के पूरित परीक्षा फार्म का सूक्ष्मता से परीक्षण कर ले। परीक्षा फार्म में त्रुटि होने पर संस्थान एवं छात्र-छात्राएं स्वयं जिम्मेदार होगे। मीडिया प्रभारी डाॅ0 विजयेन्दु चतुर्वेदी ने बताया कि इस अधिसूचना को विश्वविद्यालय की वेबसाइट एवं कालेज की लाॅगिन पर अपलोड कर दिया गया है।

कृषि विवि में प्राकृतिक खेती परामर्श संगोष्ठी कार्यक्रम का आयोजन, 25 प्रगतिशील किसानों को किया गया सम्मानित

कुमारगंज अयोध्या

गुजरात के राज्यपाल आचार्य देवव्रत ने कहा कि यह कृषि विश्वविद्यालय पूरे देश में नंबर वन विवि बन गया है। हमनें बहुत विवि देखे लेकिन यह विश्वविद्यालय पूरी तरह से जीवंत है। इस मौके पर उन्होंने कुलपति के साथ-साथ कृषि मंत्री के कार्यों को जमकर सराहा। 40 साल पहले कैंसर, सुगर और ब्लडप्रेशर जैसी बीमारी नहीं थी लेकिन आज के समय में हर व्यक्ति किसी न किसी बीमारी की समस्या से जूझ रहा है। उन्होंने कहा कि आज की कृषि प्रणाली हिंसात्मक हो गई है जो मनुष्यों की जिंदगी को धीरे-धीरे निगल रही है। उन्होंने कहा कि अपने देश में किसान भाईयों को डीएपी, यूरिया आदि रासायनिक उर्वरकों का प्रयोग बंद कर प्राकृतिक और जैविक खेती का रास्ता अपनाना होगा। अगर 10 साल के बच्चे को कैंसर हो रहा है तो उसका मुख्य कारण आहार है और उसके जिम्मेदार भी हम हैं। राज्यपाल ने कहा कि यूरोप और अमेरिका में हमारे सैंपल फेल हो जा रहे हैं वहीं दूसरी तरफ बांग्लादेश, पाकिस्तान और श्रीलंका में लोग धान की खरीदारी कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि हमें सही समय पर चेतने की जरूरत है। यूएनओ के रिपोर्ट के मुताबिक 40 से 50 साल में विश्व की धरती फर्श हो जाएगी और किसी अनाज की पैदावार नहीं हो सकेगी। राज्यपाल ने कहा कि केंचुआ धरती को उपजाऊ बनाने का कार्य करता है लेकिन किसान अधिक उपज पैदा करने के चक्कर में रासायनिक उर्वरकों का प्रयोग कर इन्हें मारने का कार्य कर रहे हैं। यूरिया में 46% मात्रा नमक की होती है। धरती का आर्गेनिक कार्बन 0.6 हो गया है। जमीनें बंजर हो चुकी हैं। खाना, पानी और हवा सबको अशुद्ध करने में हम ही जिम्मेदार हैं। आगे भी यही हालत रही तो आने वाले समय में इंसान बच्चे तक नहीं पैदा कर पाएगा। उन्होंने कहा कि जैविक एवं रासायनिक खेती में खर्च आएगा लेकिन प्राकृतिक खेती करने के लिए बाजार से कुछ भी नहीं खरीदना है। घर में देशी गाय से हम प्राकृतिक खेती को कर सकते हैं। गाय के एक ग्राम गोबर में 300 से 500 करोड़ तक जीवाणु होते हैं और छुट्टा जानवरों में इनकी संख्या और अधिक हो जाती है। किसान अगर जैविक खेती करते हैं तो तीन वर्ष के बाद किसानों को अधिक उत्पादन मिलना शुरू हो जायेगा। इस दौरान उन्होंने विवि में चलाए जा रहे वृहद वृक्षारोपण अभियान की उन्होंने जमकर सराहना की। वे शनिवार को आचार्य नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय के एग्री बिजनेस मैनेजमेंट के प्रेक्षागृह में प्राकृतिक खेती पर आयोजित परामर्श संगोष्ठी में किसानों को संबोधित कर रहे थे। संगोष्ठी का शुभारंभ सभी अतिथियों ने जल भरो कार्यक्रम के साथ किया। छात्राओं ने विश्वविद्यालय कुलगीत गाकर अतिथियों का स्वागत किया। इस अवसर पर कृषि, कृषि शिक्षा एवं अनुसंधान मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने कहा कि देशभर में यह पहला विश्वविद्यालय है जिसने एक ही बार में नैक मूल्यांकन में A++ ग्रेड प्राप्त किया है। आज से कुछ समय पहले प्राकृतिक खेती के कारण हमारा देश सोने की चिड़िया के नाम से जाना जाता था। हमारे देश में काफी धन संपदा थी और प्राकृतिक उत्पाद विदेशों में जाता रहा। शाही ने कहा कि आज पोषणयुक्त अनाज नहीं खाने से मनुष्य कैंसर, सुगर, थायराइड जैसी कई प्रकार की बीमारियों का शिकार हो रहा है। समय रहते अगर सावधानी नहीं बरती गई तो आने वाली पीढ़ियां खतरें में होंगी। मंत्री शाही ने कहा कि केंद्र एवं राज्य सरकारें प्राकृतिक खेती के लिए विभिन्न योजनाएं तैयार कर रहीं हैं। बुंदेलखंड को प्राकृतिक खेती का हब बनाने पर तेजी से कार्य हो रहा है। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में देश की अर्थव्यवस्था को 1 ट्रीलियन डालर तक पहुंचाने में प्राकृतिक खेती की अहम भूमिका होगी। आज हमारा देश विदेशों को आम और अन्य उत्पाद निर्यात कर रहा है। 40 कुंटल आम अमेरिका भेजा गया है। उन्होंने कहा की कृषि विवि में 10 करोड़ की लागत से आर्गेनिक टेस्टिंग लैब बनेगा जिसमें प्राकृतिक खेती के उत्पादों की टेस्टिंग हो सकेगी। इसके लिए किसानों को दूसरे राज्यों में नहीं जाना पड़ेगा। उन्होंने सभी से आह्वान किया कि अगर देश का प्रत्येक व्यक्ति एक पेड़ अपने देश और एक पेड़ मां के नाम लगाए तो पूरे देश में हरियाली आ जायेगी। छात्र-छात्राओं द्वारा वृहत वृक्षारोपण अभियान को मंत्री ने जमकर सराहा और उन पौधौं की रक्षा करने की भी बात कही। अपने स्वागत संबोधन में कुलपति डा. बिजेंद्र सिंह ने कहा कि विश्वविद्यालय को पहली बार में ही नैक मूल्यांकन में A++ ग्रेड प्राप्त हुआ यही सभी की सामूहिक परिश्रम का परिणाम है। कुलपति ने कहा की विश्वविद्यालय में 10 एकड़ बंजर भूमि पर प्राकृतिक एवं जैविक खेती की जा रही है। जिस जगह पर कभी जानवर जाने से डरते थे आज वहां फसल लहलहा रही है। उन्होंने कहा कि शिक्षा हो या शोध एवं प्रसार सभी क्षेत्रों में विश्वविद्यालय ने अभूतपूर्व प्रगति की है। कुलपति ने कहा कि एनआइआरएफ रैंकिंग में आने के बाद विश्वविद्यालय में विदेशी छात्रों का प्रवेश हुआ। अब नैक मूल्यांकन में सर्वोच्च ग्रेड पाने के विदेशी छात्र-छात्राओं की संख्या में तेजी से इजाफा होगा। इस मौके पर राज्यपाल ने प्राकृतिक खेती एवं अन्य क्षेत्र में काम करने वाले 25 प्रगतिशील किसानों को सम्मानित किया। समस्त अतिथियों ने प्राकृतिक खेती, शोध एवं प्रसार साहित्य का विमोचन किया।

इससे पहले सभी अतिथियों ने नरेंद्र उद्यान पहुंचकर आचार्य नरेंद्र देव की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया उसके बाद अपनी मां के नाम एवं देश के लिए वृक्षारोपण किया। राज्यपाल एवं मंत्री शाही गौपूजन कार्यक्रम में भी शामिल हुए। इसके बाद राज्यपाल एवं अन्य अतिथिगण मुख्य कार्यक्रम स्थल पर पहुंचे जहां किसान मेले में लगे विभिन्न स्टालों का भ्रमण किया। धन्यवाद ज्ञापन कृषि निदेशक जितेंद्र कुमार तोमर ने किया। कार्यक्रम का संचालन डॉ सीताराम मिश्रा ने किया। इस मौके पर रुदौली विधायक रामचंद्र यादव, बीजेपी जिलाध्यक्ष संजीव सिंह, जिला पंचायत अध्यक्ष अयोध्या रोली सिंह, किसान, शिक्षक, वैज्ञानिक सहित जिले से पहुंचे अन्य प्रशासनिक अधिकारी कार्यक्रम में उपस्थित रहे।

आरटीओ ऑफिस अयोध्या एवं डीटीटीआई में हुआ वृक्षारोपण













अयोध्या: सम्भागीय परिवहन कार्यालय, अयोध्या एवं डीटीटीआई, उदया चौराहा अयोध्या में परिवहन विभाग द्वारा सम्भागीय परिवहन अधिकारी (प्रशासन), अयोध्या ऋतु सिंह, सम्भागीय निरीक्षक (प्राविधिक) प्रेम सिंह, एवं समस्त कर्मचारियों द्वारा वृक्षारोपण किया गया जिसमें पीपल, आम, नीम, से अर्जुन, वोगनबेलिया, आदि पेड़ लगाये गए। आरटीओ द्वारा बताया गया कि पर्यावरण संरक्षण, ग्लोबल वार्मिंग, बढ़ते प्रदूषण, पेड़ों के कटान को देखते हुए पर्यावरण संरक्षण, मानव जीवन एवं हमारी धरती माँ को बचाने के लिए बेहद आवश्यक है।पेड़ों से उत्सर्जित ऑक्सीजन वाहनों एवं अन्य मशीनों से निकलने वाली हानिकारक गैसों से होने वाले प्रदूषण को कम करने में सहायक होती है। साथ ही बाढ सूखा आदि रोकने में सहायक सिद्ध होती है।

महाराष्ट्र के पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे के आवास मातोश्री पर हुआ अयोध्या के सांसद का स्वागत

अयोध्या: महाराष्ट्र के पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे के आवास मातोश्री पर हुआ अयोध्या जनपद की फैज़ाबाद लोकसभा के सांसद अवधेश प्रसाद का स्वागत, ज्ञात हो कि 19 जुलाई को समाजवादी पार्टी महाराष्ट्र के प्रदेश अध्यक्ष अबू आसिम आज़मी द्वारा उत्तर प्रदेश के सभी नवनिर्वाचित सांसदों का स्वागत कार्यक्रम आयोजित था, जिसमें अयोध्या की ऐतिहासिक जीत पर सपा ज़िलाध्यक्ष पारसनाथ यादव का अंगवस्त्र पहना कर मंच पर स्वागत किया गया, आज उद्धव ठाकरे के आवास पर पूर्व नियोजित कार्यक्रम के अनुसार समाजवादी पार्टी महाराष्ट्र के प्रदेश अध्यक्ष अबू आसिम आज़मी, अयोध्या के सांसद अवधेश प्रसाद एवं आजमगढ़ के सांसद धर्मेंद्र यादव ने मुलाकात कर भविष्य में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर विस्तृत चर्चा की, इस दौरान अयोध्या से निर्वाचित सांसद अवधेश प्रसाद का उद्धव ठाकरे ने बहुत ही गर्मजोशी के साथ स्वागत कर ऐतिहासिक जीत की बधाई दी।

इस दौरान समाजवादी पार्टी महाराष्ट्र के प्रदेश अध्यक्ष अबू आसिम आज़मी, महाराष्ट्र की भिमंडी से सपा विधायक रईस शेख, समाजवादी पार्टी जनपद अयोध्या के ज़िलाध्यक्ष पारसनाथ यादव, बीकापुर विधानसभा से सपा पूर्व प्रत्याशी रहे हाजी फिरोज़ खान गब्बर, समाजवादी पार्टी के प्रदेश सचिव मोहम्मद अली, ज़िला उपाध्यक्ष एजाज़ अहमद, अमित प्रसाद , शशांक शुक्ला प्रमुख रूप से मौजूद रहे।

पूर्व ब्लाक प्रमुख मेराज अहमद ने किया पौधरोपण

सोहावल अयोध्या: सी एच सी सोहावल के प्रांगण में सोहावल ब्लॉक के पूर्व ब्लाक प्रमुख मेराज अहमद खान ने विरीक्षारोपण किया इस अवसर पर उन्होंने कहा पर्यावरण ही जीवन को सांसे प्रदान करता है क्षेत्र की जनता से अपील किया की हर व्यक्ति अपने हाथो से एक वृक्ष जरूर लगाए।इस मौके पर डॉक्टर इकबाल बकाई सहित अन्य स्वास्थ्यकर्मी मौजूद रहे।

ज्यादा से ज्यादा लोग विज्ञान में रहे- प्रो शर्मा

अयोध्या: कामता प्रसाद सुन्दरलाल साकेत स्नातकोत्तर महाविद्यालय, अयोध्या में रसायन विज्ञान विभाग और राष्ट्रीय विज्ञान अकादमी प्रयागराज के संयुक्त तत्वावधान में महाविद्यालय के राजा जगदंबिका प्रताप नारायण सिंह सभागार में आयोजित द्विदिवसीय कार्यशाला के दूसरे और अंतिम दिन नई दिल्ली स्थित श्रीराम इंस्टीट्यूट फॉर इंडस्ट्रियल रिसर्च नई दिल्ली के पूर्व निदेशक डॉ मुकुल दास ने बायोइनफॉर्मेटिक्स का महत्व इंगित करते हुए कहा कि इसकी सहायता से हजारों की संख्या में होने वाले प्रयोगों से बचते हुए केवल कुछ प्रयोगों से हम अंतिम निष्कर्ष पर पहुँच सकते हैं। जिससे अनुदान एजेंसियों का धन और वैज्ञानिकों का बहुमूल्य समय बच सकता है। छात्रों का आह्वान करते हुए उन्होंने कहा कि छात्रों में वैज्ञानिक चेतना का होना जरूरी है। अयोध्या के सन्दर्भ में सरयू में अर्पित किए जाने वाले फूलों से रंगों का निष्कर्षण किया जा सकता है। चढ़ने वाले प्रसाद के गुणवत्ता परीक्षण करके उसके गुणवत्ता को बनाए रखने की बात कही। डॉ० राम मनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय अयोध्या के माइक्रोबायोलॉजी विभाग से सेवानिवृत प्रो० राजीव गौर ने विद्यार्थियों को छोटे-छोटे समूह बनाकर और जिला प्रशासन से मदद लेकर पौधारोपण करने और उनके संरक्षण पर जोर दिया। प्रो० राजीव गौर का कहना था कि यदि ठोस कचरा प्रबन्धन, प्लास्टिक कचरा प्रबन्धन, सीवेज उपचार के लिए प्रयोग होने वाले सूक्ष्म जीवियों को स्थानीय स्तर पर छात्रों के समूहों द्वारा संवर्धन करके वितरित किया जाए तो उसकी दक्षता बाजार में मिलने वाले सूक्ष्मजीवियों की तुलना में कहीं अधिक होती है। इस कार्य में महाविद्यालय के छात्र अवध विश्वविद्यालय, आचार्य नरेंद्र देव विश्वविद्यालय, कुमारगंज से तकनीकी मदद ले सकते हैं और अयोध्या जिला प्रशासन से आर्थिक मदद भी ले सकते हैं। कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रही भारत सरकार के विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय के जैव प्रौद्योगिकी विभाग की पूर्व सचिव पद्मभूषण प्रो० मंजू शर्मा ने विज्ञान को समाज से जोड़ने पर जोर देने को कहा।

महाविद्यालय के मुख्य नियंता के प्रो० अशोक मिश्र ने रामचरितमानस का सस्वर पाठ कर सभी का मन मोह लिया। व्याख्यानों के अन्त में राष्ट्रीय विज्ञान अकादमी प्रयागराज के प्रतिनिधि डॉ० संतोष शुक्ल ने अकादमी की तरफ से सभी आगंतुकों, प्राचार्य प्रो० अभय सिंह, समन्वयक प्रो०आशुतोष सिंह और छात्रों का को धन्यवाद ज्ञापित किया। प्राचार्य प्रो०अभय कुमार सिंह ने वैज्ञानिकों को स्मृति चिन्ह प्रदान कर सम्मानित करते हुए धन्यवाद व्यापित किया। इस द्विदिवसीय व्याख्यान कार्यशाला में प्रो०अरुण कुमार पाण्डेय मानसरोवर ग्लोबल विश्वविद्यालय भोपाल, डॉ० देवाशीष मोहंती, निदेशक नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ़ इम्यूनोलॉजी, नई दिल्ली, प्रो० प्रतिभा जॉली, पूर्व प्राचार्य मिरांडा हाउस, नई दिल्ली, प्रो० अखिलेश त्यागी, दिल्ली विश्वविद्यालय, डॉ० अलका शर्मा, वरिष्ठ सलाहकार बायोटेक्नोलॉजी, प्रो० नीलम पाठक, अवध विश्विद्यालय, प्रो० अभिषेक सिंह, यू० पी० कॉलेज वाराणसी सहित महाविद्यालय के मुख्य निंयता प्रो०अशोक कुमार मिश्र,प्रो पवन कुमार सिंह, प्रो० फौज़दार यादव, प्रो० अशोक कुमार राय, प्रो आशुतोष त्रिपाठी, प्रो० प्रीति सिंह, प्रो० प्रतिभा सिंह, प्रो० वंदना जायसवाल, प्रो० कविता सिंह, डा मनीष कुमार सिंह, डॉ० अविनाश तिवारी, डॉ० अरुण कुमार डा पुनीता श्रीवास्तव, डा सोमवीर, डा अवधेश शुक्ला , डा सतेन्द्र तिवारी, डा संदीप सहित अन्य गणमान्य प्राध्यापक-प्राध्यापिकायें उपस्थिति थे। कार्यक्रम का संचालन इस कार्यक्रम के समन्वयक प्रो आशुतोष सिंह ने किया। अन्त में राष्ट्रगान के साथ इस द्विदिवसीय व्याख्यान कार्यशाला का समापन हुआ।

सोहावल लेखपाल संघ अध्यक्ष सुशील कुमार ने किया पौधरोपण

अयोध्या: रामनगरी अयोध्या में पौध रोपण अभियान के अंतर्गत लाखों पौध लगाने का लक्ष्य शुरू हुआ , कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने मिल्कीपुर क्षेत्र में पौध रोपण अभियान में हुए शामिल, एसडीएम सोहावल व तहसीलदार ने भी तहसील परिसर में किया पौध रोपण, लेखपाल संघ अध्यक्ष सुशील कुमार व मंत्री तरुण मिश्रा ने भी किया पौध रोपण l इसी के साथ विभिन्न विभागों के द्वारा भी पौधारोपण किया गया।

डेकोरेटेड पोल को लेकर बनाया जा रहा है भ्रम का माहौल - महापौर

अयोध्या: डेकोरेटेड पोल को लेकर फैलाये जा रही भ्रामक सूचनाओं का महंत गिरीश पति त्रिपाठी ने प्रेसवार्ता के दौरान जवाब दिया। महापौर गिरीश पति त्रिपाठी ने कहा कि डेकोरेटिव पोल को लेकर भ्रम का माहौल बनाया जा रहा है। नकारात्मकता फैलाने वाले लोगों का अयोध्या में स्वागत है वे यहाँ आये डेकेरेटिव पोल व यहां के विकास को देखें। उसके बाद ही इसके सम्बंध में कोई बात कहें।

उन्होंने कहा कि अयोध्य धाम के 10 वार्डो में डेकेरिटव पोल लगना था। 71 करोड़ 86 लाख रुपये इसके लिए सेंशन हुए थे। इसमें अभी 2935 पोल लग चुके है। इसमें 12 पोल को लेकर पार्षदों को कुछ समस्याएं थी। जिसको लेकर उन्होंने नगर आयुक्त को ज्ञापन दिया। लेकिन इसको लेकर भ्रम की स्थिति फैलाई जा रही है। इसमें तीन फर्मो को काम सौंपा गया। जिसमेंं ज्यादातर ने अपना लगभग कार्य पूरा कर लिया है। टेंडर में इन पोल के पांच साल तक अनुरक्षण की शर्त है। अगर पांच साल तक कोई दिक्कत होती है तो उसकी मरम्मत सम्बंधित फर्म को करनी होगी। पोल अभी नगर निगम को हैंड ओवर नही किया गया है। अनुरक्षण अवधि हैंड ओवर के बाद प्रारम्भ होगी।

उन्होंने बताया कि नगर निगम डेकेरेटिव पोल के माध्यम से अच्छी सेवा अयोध्या में दे रहा है। यह पोल अयोध्या के सौन्दर्य में वृद्धि कर रहे है। अयोध्या एक तीर्थ क्षेत्र है। यहां लाईट को धार्मिक रुप दिया गया है। छोटी-छोटी गलियों में भी डेकोरेटिव पोल लगाए जा रहे है। उन्होंने कहा कि 2017 के पहले व आज की अयोध्या की स्थिति में नकारात्मक बात करने वालों को तुलना करनी चाहिए। आज भी नगर क्षेत्र में कमियां हो सकती है। जिनको जनता की अपेक्षानुसार पूरा करने के लिए नगर निगम प्रतिबद्ध है। अगर कही कोई शिकायत आती है तो उसका समयबद्ध निस्तारण होता है।

प्रेस वार्ता के दौरान पार्षद अनुज दास, विनय जायसवाल, रिशु पाण्डेय, अनिकेत यादव, चंदन सिंह, शिव कुमार, अनिल सिंह, संतोष सिंह, उपसभापति जयनारायण सिंह रिंकू, अनूप श्रीवास्तव, निखिल श्रीवास्तव, विकास कुमार, रमाशंकर निषाद, धर्मेन्द्र मिश्र, सुनील यादव, बिजेन्द्र बहादुर सिंह, हरिश्चन्द्र गुप्ता, अंकित त्रिपाठी, प्रियेश दास, किशन कुमार, धर्मेन्द्र सिंह, सौरभ सिंह सूर्यवंशी मौजूद रहे।

जिलाधिकारी ने दिया जानकारी, मानसून सीजन का प्रदेश में आगमन हो गया है

अयोध्या: जिलाधिकारी चन्द्र विजय सिंह ने बताया कि मानसून सीजन का प्रदेश में आगमन हो गया है तथा जनपद में मौसम विभाग के अनुसार आगामी दिवसों में वर्षा, वज्रपात व मेघ गर्जन की सम्भावना व्यक्त की गयी हैं। उक्त के सम्बन्ध में अवगत कराना है की पूर्व वषों में देखा गया है कि अधिक वर्षा की अवधि में वर्षा के दौरान घाटों/तालाबों/पोखरों/नदी आदि में स्नान करने के दौरान बच्चो/किशोर/किशोरियों एवं अन्य व्यक्तियों की मृत्यु डूब कर व वज्रपात से जनहानि की घटनायें काफी बढ़ जाती हैं। इन बहुमूल्य जिंदगियों को बचाने के लिए निम्न बातों पर ध्यान दें खतरनाक घाटों/तालाबों/गड्ढों के किनारे न स्वयं जायें न ही बच्चों को जाने दें। यदि तैरना जानते हों तभी नदियों/तालाबों/घाटों के किनारे जाएँ। डूबते हुए व्यक्ति को धोती, साडी, रस्सी या बांस की सहायता से बचायें तथा तैरना नहीं जानते हों तो पानी में न जाएँ और सहायता के लिए पुकारें। बच्चों को पुल/तालाबों/गड्ढों/तेज पानी के बहाव में स्नान करने से रोकें। बच्चों को पुल/पुलिया/ऊँचे टीलों से पानी में कूद कर स्नान करने से रोकें। यदि बहुत ही आवश्यक हो तो ही नदी के किनारे जाये, परन्तु नदी में उतरते समय गहराई का ध्यान रखें। गाँव/टोले/मोहल्ले में डूबने की घटना होने पर आस-पास के लोग आपस में एकत्रित होकर ऐसी दुःखद घटना की चर्चा अवश्य करें, कि किस कारण से इस तरह की घटना हुई और ऐसा क्या किया जाए कि इस तरह की घटना फिर कभी न हो।डूबे हुए व्यक्ति को पानी से निकाल कर तत्काल प्राथमिक उपचार निम्न प्रकार करें सबसे पहले देख लें कि डूबे हुए व्यक्ति के मुँह व नाक में कुछ फंसा तो नहीं है, यदि है तो उसे निकाले। नाक व मुँह पर उँगलियों के स्पर्श से जांच कर लें कि डूबे डूबे हुए व्यक्ति की सांस चल रही कि नहीं। नब्ज की जाँच करने के लिए गले के किनारे के हिस्सों में उँगलियों से छूकर जानकारी प्राप्त करें कि नब्ज चल रही है कि नहीं। नब्ज साँस का नहीं पता चलने पर डूबे हुए व्यक्ति के मुँह से मुँह लगाकर दो बार भरपूर साँस दें व 30 बार छाती के बीच में दबाव दें तथा इस विधि को 3-4 बार दुहराएँ। ऐसा करने से धड़कन वापस आ सकती है व साँस चलना शुरू हो सकती है। यदि डूबा हुआ व्यक्ति खाँस, बोल व साँस ले सकने कि स्थिति में है तो उसे ऐसा करने के लिए प्रोत्साहित करें। मूर्छा या बेहोशी आने पर पुनः साँस देने व छाती में दबाव देने की प्रक्रिया शुरू करें। उपरोक्त प्रक्रिया के बाद बचाए गए व्यक्ति को अविलंब नजदीकी डॉक्टर अथवा प्राथमिक चिकित्सा केन्द्र पर ले जाएँ। उत्तर प्रदेश राज्य में आंधी-तूफान के साथ वज्रपात की काफी घटनाएं हो रही है तथा पूर्व में आकाशीय विद्युत से अयोध्या जनपद में भी जनहानि घटित हुई हैं। अतः यह महत्वपूर्ण हैं की हम सभी वज्रपात से बचाव के उपायों का अनुपालन करे तथा "Ministry of Earth Science and Indian Institute of Tropical Meteorology,Pune" के सहयोग से वज्रपात की पूर्व चेतावनी/अलर्ट प्रेषित करने वाली एप्लीकेशन दामिनी ऐप को अपने मोबाइल में डाउनलोड कर ले। दामिनी ऐप लगभग 20 कि0मी0 के क्षेत्र में संभावित लाइटनिंग अलर्ट का नोटिफिकेशन लगभग 04 घंटे पूर्व प्रेषित करता है, जिससे व्यक्तियों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचने तथा बचाव का अवसर प्राप्त हो सके। जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण अयोध्या द्वारा जनहित में जारी। उक्त जानकारी अपर जिलाधिकारी (वि0/रा0) अयोध्या ने दी है।