ऐडेड माध्यमिक विद्यालयों में मानदेय शिक्षक रखने का प्रस्ताव वापस ले सरकार - युवा मंच
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प्रयागराज। ऐडेड माध्यमिक विद्यालयों में मानदेय शिक्षक रखने की घोषणा से युवाओं में जबरदस्त आक्रोश है। सरकार के इस तर्क से युवा कतई सहमत नहीं हैं कि शिक्षकों की कमी की वजह से पठन पाठन में उत्पन्न व्यवधान को दूर करने के लिए मानदेय शिक्षकों को रखना जरूरी हो गया है। युवाओं का आरोप है कि अशासकीय सहायता प्राप्त व राजकीय माध्यमिक विद्यालयों में जानबूझकर शिक्षकों के रिक्त पदों को भरा नहीं गया।
अगर सरकार चाहती तो टीजीटी-पीजीटी विज्ञापन 2022 में 25 हजार पदों को शामिल कर चयन बोर्ड से ही साल भर पहले ही शिक्षकों की नियुक्ति की जा सकती थी। इसी तरह एलटी ग्रेड जीआईसी शिक्षकों के रिक्त पदों को भरने के लिए 5 साल से अधिक समय से विज्ञापन जारी नहीं किया गया है। 88 नये राजकीय विद्यालयों में शिक्षकों के लिए आऊटसोर्सिंग भर्ती प्रावधान भी इसी मकसद से किया गया है।
युवा मंच अध्यक्ष अनिल सिंह ने सीएम योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर 2 जुलाई 2024 को कैबिनेट मीटिंग में अशासकीय सहायता प्राप्त माध्यमिक विद्यालयों में मानदेय शिक्षक रखे जाने की प्रक्रिया एवं कार्य निष्पादन शर्तें 2024 को स्वीकृति प्रदान करने के फैसले को वापस लेने और टीजीटी-पीजीटी विज्ञापन 2022 में रिक्त 25 हजार पदों को शामिल कर यथाशीघ्र इन पदों पर पारदर्शी भर्ती सुनिश्चित करने की मांग की गई है।
पत्र में कहा गया है कि वैसे भी जिन तदर्थ शिक्षकों की सेवाएं खत्म की जा चुकी हैं उन्हें मानदेय शिक्षक के बतौर विशेष अवसर प्रदान करना सुप्रीम कोर्ट के आदेश की अवहेलना व विधि विरुद्ध है।
उन्होंने कहा कि अगर कैबिनेट प्रस्ताव वापस नहीं लिया गया तो इस संबंध में शासनादेश को रद्द कराने के लिए माननीय उच्च न्यायालय में याचिका दाखिल करने को लेकर युवाओं से मशविरा कर जल्द निर्णय लिया जाएगा।





Jul 04 2024, 19:05
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