वर्षों से जलनिकासी का प्रबंध नहीं लोगों में आक्रोश
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खजनी गोरखपुर।तेज धूप और गर्मी से बेहाल लोग आसमान में बादल घिरते देख कर बारिश होने और मौसम बदलने की आस में प्रसन्न होकर दुआ करते हैं कि कुछ राहत मिलेगी। किंतु खजनी कस्बे के लोग बादल घिरते देखकर भयभीत हो जाते हैं। और दुआ करते हैं कि तेज बारिश न हो।यह सिलसिला वर्षों से चल रहा है। किंतु स्थानीय प्रशासन और जन प्रतिनिधियों द्वारा इस गंभीर जनसमस्या की ओर ध्यान नहीं दिया जा रहा है। कोरे आश्वासनों से कस्बे के लोग ऊब चुके हैं।
ऐसा इसलिए है कि लगभग 3 किमी के दायरे में सिकरीगंज और बांसगांव- माल्हनपार मार्ग पर बसे खजनी कस्बे में जलनिकासी का कोई प्रबंध नहीं है। कस्बे के मुख्य रोड की ऊंचाई तथा चौंडाई 10 मीटर बढने के बाद कस्बे में बने मकान और दुकानें सडक से नीचे हैं, और पटरियों के पास तक लोग काबिज हैं। नाली न होने से बारिश होने पर घरों और दुकानों के बाहर जलभराव हो जाता है।साथ ही कस्बे तक आने वाले सभी संपर्क मार्गों तथा कई लोगों के घरों और दुकानों में पानी भर जाता है।
स्थानीय लोगों ने बताया कि कम्हरिया घाट तक जुडने वाली खजनी कस्बे की मुख्य सडक की चौंडाई अभी और बढाने की योजना प्रस्तावित है। लोकनिर्माण विभाग द्वारा सडक की दोनों पटरियों के किनारे बने मकानों पर मार्क (चिन्ह) लगाया गया है साथ ही नोटिस भी मिल चुकी है। ऐसे में लोग इंतजार कर रहे हैं कि सडक का निर्माण हो जाए और सडक कहां तक बनेगी यह निश्चित हो जाए तब अपने घरों और दुकानों के निर्माण और सुरक्षा का उपाय करें।लेकिन सडक का निर्माण अभी प्रारंभ नहीं हुआ है इस बीच एक बार फिर बारिश शुरू हो चुकी है। जलनिकासी का प्रबंध नहीं होने से लोगों में चिंता,भय के साथ ही आक्रोश भी बढ रहा है।
अनिल पांडेय, दीनानाथ मोदनवाल,प्रितम पटवा,गणेश मोदनवाल,अशोक गौड़,संतोष वर्मा, दिवाकर वर्मा,सोनू मद्धेशिया,संजय वर्मा,गोपाल गुप्ता आदि ने बताया कि विगत 5 वर्षों से इस समस्या को कई बार स्थानीय जनप्रतिनिधियों और प्रशासन को बताया जा चुका है लेकिन कोई ध्यान नहीं देता है। घरों के सीवर का पानी हो या एक ग्लास और बाल्टी का पानी लोग सडक पर लाकर फेंकते हैं।















गोरखपुर। मंगलवार को गोरखपुर आए मुख्यमंत्री एवं गोरक्षपीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथ ने गोरखनाथ मंदिर में रात्रि प्रवास के बाद बुधवार सुबह झमाझम बारिश के बीच मंदिर की गोशाला में गोसेवा की। उन्होंने भीगने की परवाह न करते हुए गोशाला का भ्रमण कर गोवंश का हाल जाना और उन्हें अपने हाथों से गुड़ खिलाया। *सीएम योगी की दिनचर्या परंपरागत रही* बुधवार सुबह गोरखनाथ मंदिर में सीएम योगी की दिनचर्या परंपरागत रही। उन्होंने प्रातःकाल गोरखनाथ मंदिर में गुरु गोरखनाथ का दर्शन-पूजन किया और अपने गुरु ब्रह्मलीन महंत अवेद्यनाथ की समाधि स्थल पर जाकर मत्था टेका। सीएम योगी जब भी गोरखनाथ मंदिर में होते हैं तो गोसेवा उनकी दिनचर्या का अभिन्न हिस्सा रहती है। बुधवार सुबह मानसून की पहली झमाझम बारिश के बावजूद वह मंदिर परिसर का भ्रमण करते हुए मंदिर की गोशाला में पहुंचे और वहां कुछ समय व्यतीत किया। *सीएम योगी की आवाज इन गोवंश के लिए जानी पहचानी* गोशाला में उन्होंने चारों तरफ भ्रमण करते हुए श्यामा, गौरी, गंगा, भोला आदि नामों से गोवंश को पुकारा। सीएम योगी की आवाज इन गोवंश के लिए जानी पहचानी है। प्यार भरी पुकार सुनते ही कई गोवंश दौड़ते-मचलते हुए उनके पास आ गए। बारिश के बीच मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सभी के माथे पर हाथ फेरा, उन्हें खूब दुलारा और अपने हाथों से उन्हें रोटी और गुड़ खिलाया। मुख्यमंत्री ने गोशाला के कार्यकर्ताओं से सभी गोवंश के स्वास्थ्य व पोषण की जानकारी ली और देखभाल के लिए जरूरी निर्देश दिए।

Jun 27 2024, 18:58
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