बंगाल शिक्षक भर्ती घोटाला: TMC विधायक जाफिकुल इस्लाम के ठिकानों पर CBI की रेड, सवा किलो सोना और 34 लाख नकदी बरामद

केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने कहा कि तृणमूल कांग्रेस (TMC) पार्टी के विधायक जफीकुल इस्लाम के आवास और परिसर से 34 लाख रुपये की नकदी, 1.2 किलोग्राम सोना और प्राथमिक विद्यालयों के नियुक्ति पत्र जब्त किए गए। TMC विधायक के आवास के साथ कुल 11 संस्थानों पर CBI ने छापेमारी की। जफीकुल इस्लाम 2021 पश्चिम बंगाल विधान सभा चुनाव में डोमकल निर्वाचन क्षेत्र से चुने गए थे। ये छापेमारी पश्चिम बंगाल SSC शिक्षक भर्ती घोटाले के सिलसिले में हुई है। 

CBI के अधिकारियों ने कहा है कि राज्य भर में आठ स्थानों पर एक साथ छापेमारी की गई। मुर्शिदाबाद में डोमकल निर्वाचन क्षेत्र से विधायक जफीकुल इस्लाम और कोलकाता नगर निगम में पार्षद बप्पादित्य दासगुप्ता के आवास लक्षित स्थानों में से थे। इसके अलावा, साल्ट लेक के एक पार्षद देबराज चक्रवर्ती के आवासों और उनके भाई सजल कर के साथ उत्तरी बंगाल के कूच बिहार जिले के एक व्यवसायी श्यामल कर के घरों पर भी छापे मारे गए। इसके अलावा, एक निजी बीएड कॉलेज पर भी छापा मारा गया। विधायक जाफिकुल इस्लाम के घर पर छापेमारी गुरुवार को 12 घंटे तक चली। एजेंसी यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि क्या उसने अपने रिश्तेदारों के नाम पर संपत्ति अर्जित की है।

वहीं, TMC विधायक इस्लाम ने कहा कि उनके पास कोई बेहिसाब संपत्ति नहीं है। CBI सूत्रों ने बिधाननगर नगर निगम में TMC के मेयर-इन-काउंसिल के सदस्य देबराज चक्रवर्ती के कार्यालय से सरकारी कर्मचारियों के लिए स्थानांतरण पत्र जब्त करने की भी सूचना दी। रिपोर्ट्स के मुताबिक, जांच एजेंसी को विधायक जाफिकुल इस्लाम के आवास पर तीन बैग में नकदी बरामद हुई। विधायक जफीकुल इस्लाम ने कहा कि, 'शिक्षक भर्ती घोटाले से मेरा कभी कोई संबंध नहीं रहा। मैंने कुछ दिन पहले एक संपत्ति बेची थी और नकदी मेरे घर में थी। ये मेरी पत्नी ने उन्हें सेल डीड भी दिखाई थी, लेकिन अधिकारियों ने कहा कि हमें पैसा बैंक में रखना चाहिए था।”

TMC विधायक ने कहा कि, “मेरे पास यह दिखाने के लिए सहायक दस्तावेज हैं कि नकदी मेरे घर पर क्यों थी। मैं उन्हें वापस लाऊंगा। मैं विधानसभा में व्यस्त था और बैंक में राशि जमा नहीं कर सका।” बता दें कि, 2021 विधानसभा चुनाव के लिए अपने हलफनामे में, जफीकुल इस्लाम ने वित्तीय वर्ष 2019-20 के लिए 8 लाख रुपये की आय घोषित की थी। इसी अवधि में उनकी पत्नी की आय 6 लाख रुपये बताई गई थी। उनकी अचल संपत्ति, जिसमें निवास और कृषि और गैर-कृषि भूमि शामिल है, का खुलासा मूल्य 2.5 करोड़ रुपये था, जबकि उनकी बैंक जमा और निवेश कुल 1.71 करोड़ रुपये थी।

अपने कार्यालय में मिले सरकारी कर्मचारियों के स्थानांतरण पत्रों के बारे में देबराज चक्रवर्ती ने कहा कि, “उन्हें मेरे कार्यालय में एक उम्मीदवार के उच्च माध्यमिक परिणाम की एक प्रति मिली। उम्मीदवार ने मुझसे संपर्क किया होगा और मुझे परिणाम की एक प्रति दी होगी। स्वाभाविक रूप से, मेरे निर्वाचन क्षेत्र के निवासी अगर मुसीबत में होते हैं तो मुझसे संपर्क करते हैं। लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि मैंने कोई संतुष्टि स्वीकार की है।'' 

CBI अधिकारियों ने देबराज चक्रवर्ती को अपने और अपने रिश्तेदारों के बैंक विवरण प्रस्तुत करने का भी निर्देश दिया। चक्रवर्ती ने उल्लेख किया कि CBI ने उनकी दूसरी संपत्ति पर छापा मारा, जहां उनकी पत्नी अदिति मुंशी, एक TMC विधायक और प्रसिद्ध लोक गायिका, एक संगीत विद्यालय संचालित करती हैं। बप्पादित्य दासगुप्ता से पांच घंटे तक पूछताछ की गई। सवालों का मुख्य फोकस भर्ती घोटाले के संबंध में पूर्व मंत्री पार्थ चटर्जी और उनकी सहयोगी अर्पिता मुखर्जी पर था। 

उन्होंने कहा, “मैंने अपनी सर्वोत्तम जानकारी के अनुसार उत्तर दिया। अगर भविष्य में उन्हें मेरी जरूरत पड़ेगी तो मैं उनका सहयोग करूंगा।' उन्होंने मेरे कर रिटर्न की प्रतियां, मेरा सेल फोन और मेरे कार्यालय से निवासियों के कुछ सीवी ले लिए हैं। मैंने कभी किसी को नौकरी के लिए सिफ़ारिश नहीं की और मेरे परिवार के किसी भी सदस्य के पास सरकारी नौकरी नहीं थी।”

 बंगाल शिक्षक भर्ती घोटाला

बता दें कि, पश्चिम बंगाल शिक्षक भर्ती घोटाला, जिसे आमतौर पर SSC घोटाला के रूप में जाना जाता है, 2014 से 2016 तक SSC द्वारा आयोजित राज्य स्तरीय चयन परीक्षा (SLT) के माध्यम से आयोजित भर्ती प्रक्रिया पर आधारित है। पश्चिम बंगाल स्कूल सेवा आयोग (SSC) ने 2014 में घोषणा की थी कि राज्य स्तरीय चयन परीक्षा (SLST) के माध्यम से पश्चिम बंगाल के सरकारी स्कूलों में शिक्षकों की नियुक्ति की जाएगी, तभी कथित घोटाला पहली बार सामने आया था। 2016 में, भर्ती प्रक्रिया शुरू हुई। उस समय, पार्थ चटर्जी पश्चिम बंगाल उच्च शिक्षा और स्कूल शिक्षा विभाग के प्रभारी मंत्री थे। नियुक्ति प्रक्रिया में अनियमितताओं का हवाला देते हुए कलकत्ता उच्च न्यायालय में कई शिकायतें प्रस्तुत की गईं। याचिकाकर्ताओं ने आरोप लगाया कि कम अंक पाने वाले कई परीक्षार्थी मेरिट सूची में उच्च स्थान पर हैं। कुछ ऐसे आवेदकों को नियुक्ति पत्र मिलने के संबंध में भी कई दावे सामने आए, जो मेरिट सूची में भी नहीं थे। 

एक अलग, लेकिन संबंधित उदाहरण में, बंगाल सरकार ने 2016 में सरकारी या सहायता प्राप्त स्कूलों में 13,000 ग्रुप डी कर्मचारियों की भर्ती के लिए स्कूल सेवा आयोग (SSC) अधिसूचना भेजी थी। दिलचस्प बात यह है कि उक्त भर्ती के लिए जिम्मेदार पैनल का कार्यकाल 2019 में समाप्त हो गया, लेकिन कई याचिकाकर्ताओं ने आरोप लगाया कि पैनल के कार्यकाल की समाप्ति के बावजूद भर्ती हुई थी और कथित तौर पर 25 लोगों को डब्ल्यूबीबीएसई द्वारा नियुक्त किया गया था। हालाँकि, जब मामला सुनवाई के लिए आया, तो याचिकाकर्ताओं ने आरोप लगाया कि SSC पैनल की समाप्ति के बाद 25 नहीं बल्कि 500 से अधिक लोगों को नियुक्त किया गया था और अब वे राज्य सरकार से वेतन प्राप्त कर रहे हैं। कलकत्ता उच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति अभिजीत गंगोपाध्याय की पीठ के आदेश के बाद मामले में CBI जांच शुरू की गई थी। हालिया छापेमारी भी जांच का हिस्सा है।

भारत बना समुद्र के शहंशाह, अंतर्राष्ट्रीय समुद्री संगठन परिषद ​में फिर लहराया देश का परचम

डेस्क: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत लगातार अंतरराष्ट्रीय पटल पर अपनी अलग पहचान बनाता जा रहा है। भारत के प्रति दुनिया के अन्य देशों का भरोसा भी बढ़ा है। अपनी स्वच्छ और मजबूत देश की छवि के चलते ही भारत समुद्र का शहंशाह बन बैठा है। एक बारर फिर भारत को अंतरराष्ट्रीय समुद्री संगठन (आइएमओ) परिषद के लिए शुक्रवार को हुए मतदान में 2024-25 द्विवार्षिक सत्र के लिए सर्वाधिक वोट के साथ फिर से चुन लिया गया। यह भारत के प्रति दुनिया के अटूट भरोसे और पीएम मोदी के करिश्माई नेतृत्व का नतीजा है। 

 

आइएमओ के लिए भारत का फिर से चुना जाना ऑस्ट्रेलिया, ब्राजील, कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, नीदरलैंड, स्पेन, स्वीडन और संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) के साथ "अंतरराष्ट्रीय समुद्री व्यापार में सबसे अधिक रुचि" वाले 10 देशों की श्रेणी में आता है। ब्रिटेन में भारतीय उच्चायुक्त विक्रम दोरईस्वामी ने कहा कि यह वैश्विक समुद्री संचालनों में भारत के विविध योगदान को बढ़ाने के लिए सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

 

भारत ने जताया भरोसे के लिए आभार

चुनाव के तुरंत बाद दोरईस्वामी ने कहा, ‘‘भारत को वैश्विक समुद्री क्षेत्र में सेवा जारी रखने के लिए अंतरराष्ट्रीय समुद्री संगठन में अंतरराष्ट्रीय समुदाय के समर्थन से हम प्रसन्न और अभिभूत हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘आज लंदन में श्रेणी ‘बी’ में आईएमओ परिषद के लिए चुनाव में सर्वाधिक वोट के साथ हमे फिर से चुना गया, जिससे आईएमओ में भारत की निरंतर सेवा का एक गौरवपूर्ण और अटूट रिकॉर्ड बरकरार रहा। यह पूरी तरह से हमारी सरकार द्वारा विशेष रूप से हाल के वर्षों में हमारे घरेलू नौवहन क्षेत्र के तेजी से विस्तार और विकास और वैश्विक समुद्री संचालन में भारत के विविध योगदान को बढ़ाने के लिए दी गई उच्च प्राथमिकता को दर्शाता है।’’ आईएमओ की 33वीं सभा 27 नवंबर से 6 दिसंबर के बीच लंदन में आईएमओ मुख्यालय में आयोजित हो रही है।

भारत बना समुद्र का शहंशाह, अंतरराष्ट्रीय समुद्री संगठन परिषद ​में फिर लहराया देश का परचम

डेस्क: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत लगातार अंतरराष्ट्रीय पटल पर अपनी अलग पहचान बनाता जा रहा है। भारत के प्रति दुनिया के अन्य देशों का भरोसा भी बढ़ा है। अपनी स्वच्छ और मजबूत देश की छवि के चलते ही भारत समुद्र का शहंशाह बन बैठा है। एक बारर फिर भारत को अंतरराष्ट्रीय समुद्री संगठन (आइएमओ) परिषद के लिए शुक्रवार को हुए मतदान में 2024-25 द्विवार्षिक सत्र के लिए सर्वाधिक वोट के साथ फिर से चुन लिया गया। यह भारत के प्रति दुनिया के अटूट भरोसे और पीएम मोदी के करिश्माई नेतृत्व का नतीजा है। 

 

आइएमओ के लिए भारत का फिर से चुना जाना ऑस्ट्रेलिया, ब्राजील, कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, नीदरलैंड, स्पेन, स्वीडन और संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) के साथ "अंतरराष्ट्रीय समुद्री व्यापार में सबसे अधिक रुचि" वाले 10 देशों की श्रेणी में आता है। ब्रिटेन में भारतीय उच्चायुक्त विक्रम दोरईस्वामी ने कहा कि यह वैश्विक समुद्री संचालनों में भारत के विविध योगदान को बढ़ाने के लिए सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

 

भारत ने जताया भरोसे के लिए आभार

चुनाव के तुरंत बाद दोरईस्वामी ने कहा, ‘‘भारत को वैश्विक समुद्री क्षेत्र में सेवा जारी रखने के लिए अंतरराष्ट्रीय समुद्री संगठन में अंतरराष्ट्रीय समुदाय के समर्थन से हम प्रसन्न और अभिभूत हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘आज लंदन में श्रेणी ‘बी’ में आईएमओ परिषद के लिए चुनाव में सर्वाधिक वोट के साथ हमे फिर से चुना गया, जिससे आईएमओ में भारत की निरंतर सेवा का एक गौरवपूर्ण और अटूट रिकॉर्ड बरकरार रहा। यह पूरी तरह से हमारी सरकार द्वारा विशेष रूप से हाल के वर्षों में हमारे घरेलू नौवहन क्षेत्र के तेजी से विस्तार और विकास और वैश्विक समुद्री संचालन में भारत के विविध योगदान को बढ़ाने के लिए दी गई उच्च प्राथमिकता को दर्शाता है।’’ आईएमओ की 33वीं सभा 27 नवंबर से 6 दिसंबर के बीच लंदन में आईएमओ मुख्यालय में आयोजित हो रही है।

दंतेवाड़ा में बैनर हटाते समय हुआ आईईडी ब्लास्ट, CRPF के दो जवान घायल

डेस्क: छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा जिले में एक एक बार फिर आईईडी ब्लास्ट हुआ है। बारसूर थाना क्षेत्र में पीएलजीए सप्ताह के दौरान बैनर पोस्टर हटाने गए सीआरपीएफ के दो जवान घायल हो गए। बता दें कि यह धमाका बैनर पोस्टर हटाने के दौरान ही हुआ। वहीं इस आईईडी ब्लास्ट के बाद मौके पर मौजूद सीआरपीएफ के दो जवान घायल हो गए हैं। बारसूर पल्ली मार्ग के सातधार 195 बटालियन के जवान ब्रिज के पास लगे बैनर पोस्टर को निकाल रहे थे। इसी दौरान यह आईईडी ब्लास्ट हुआ। फिलहाल दोनों जवान खतरे से बाहर हैं।

एक दिन पहले की उपसरपंच की हत्या

अभी शुक्रवार को ही कांकेर जिले के छोटे बेठिया थाना क्षेत्र में नक्सलियों ने जमकर उत्पात मचाया। नक्सलियों ने कंदाड़ी गांव के उपसरपंच की हत्या कर दी। उन्होंने पुलिस की मुखबिरी का आरोप लगाकर उपसरपंच रामसू कचलामी की हत्या कर दी। हत्या से पहले नक्सलियों ने बाकायदा जन अदालत लगाई और इसी दौरान उपसरपंच की हत्या की गई। वहीं दूसरी तरफ पी व्ही 62 में मोबाइल टावर को भी नक्सलियों ने आग के हवाले कर दिया। इसके बाद नक्सलियों ने संगम जाने वाली पक्की सड़क को भी जगह-जगह से काट दिया। इस दौरान उन्होंने भारी मात्रा में पर्चे भी फेंके। 

पीएलजीए सप्ताह मना रहे नक्सली

बता दें कि छत्तीसगढ़ में नक्सली इन दिनों पीएलजीए सप्ताह मना रहे हैं। यह पीएलजीए सप्ताह दो दिसंबर से आठ दिसंबर तक चलेगा। इसके तहत नक्सली गांव-गांव में बैनर-पोस्टर लगा रहे हैं। साथ ही जगह-जगह जाकर लोगों से पीएलजीए सप्ताह मनाने की अपील कर रहे हैं। पीएलजीए सप्ताह को नक्सली शहीद दिवस के रूप में मनाते हैं। इसका फुल फॉर्म पीपुल्स लिबरेशन गोरिल्ला आर्मी है। माना जाता है कि इसमें शामिल होने वाले नक्सली बेहद माहिर और अत्याधुनिक हथियारों से लैस होते हैं। इसके सदस्यों को खास तरह से ट्रेनिंग देकर तैयार किया जाता है। वहीं पीएलजीए सप्ताह के दौरान नक्सली अपने संगठन के लोगों को याद करते हुए शहीदी दिवस के रूप में इसे मनाते हैं।

दंतेवाड़ा में बैनर हटाते समय हुआ आईईडी ब्लास्ट, CRPF के दो जवान घायल

डेस्क: छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा जिले में एक एक बार फिर आईईडी ब्लास्ट हुआ है। बारसूर थाना क्षेत्र में पीएलजीए सप्ताह के दौरान बैनर पोस्टर हटाने गए सीआरपीएफ के दो जवान घायल हो गए। बता दें कि यह धमाका बैनर पोस्टर हटाने के दौरान ही हुआ। वहीं इस आईईडी ब्लास्ट के बाद मौके पर मौजूद सीआरपीएफ के दो जवान घायल हो गए हैं। बारसूर पल्ली मार्ग के सातधार 195 बटालियन के जवान ब्रिज के पास लगे बैनर पोस्टर को निकाल रहे थे। इसी दौरान यह आईईडी ब्लास्ट हुआ। फिलहाल दोनों जवान खतरे से बाहर हैं।

एक दिन पहले की उपसरपंच की हत्या

अभी शुक्रवार को ही कांकेर जिले के छोटे बेठिया थाना क्षेत्र में नक्सलियों ने जमकर उत्पात मचाया। नक्सलियों ने कंदाड़ी गांव के उपसरपंच की हत्या कर दी। उन्होंने पुलिस की मुखबिरी का आरोप लगाकर उपसरपंच रामसू कचलामी की हत्या कर दी। हत्या से पहले नक्सलियों ने बाकायदा जन अदालत लगाई और इसी दौरान उपसरपंच की हत्या की गई। वहीं दूसरी तरफ पी व्ही 62 में मोबाइल टावर को भी नक्सलियों ने आग के हवाले कर दिया। इसके बाद नक्सलियों ने संगम जाने वाली पक्की सड़क को भी जगह-जगह से काट दिया। इस दौरान उन्होंने भारी मात्रा में पर्चे भी फेंके। 

पीएलजीए सप्ताह मना रहे नक्सली

बता दें कि छत्तीसगढ़ में नक्सली इन दिनों पीएलजीए सप्ताह मना रहे हैं। यह पीएलजीए सप्ताह दो दिसंबर से आठ दिसंबर तक चलेगा। इसके तहत नक्सली गांव-गांव में बैनर-पोस्टर लगा रहे हैं। साथ ही जगह-जगह जाकर लोगों से पीएलजीए सप्ताह मनाने की अपील कर रहे हैं। पीएलजीए सप्ताह को नक्सली शहीद दिवस के रूप में मनाते हैं। इसका फुल फॉर्म पीपुल्स लिबरेशन गोरिल्ला आर्मी है। माना जाता है कि इसमें शामिल होने वाले नक्सली बेहद माहिर और अत्याधुनिक हथियारों से लैस होते हैं। इसके सदस्यों को खास तरह से ट्रेनिंग देकर तैयार किया जाता है। वहीं पीएलजीए सप्ताह के दौरान नक्सली अपने संगठन के लोगों को याद करते हुए शहीदी दिवस के रूप में इसे मनाते हैं।

मध्य प्रदेश में उबाल पर सियासी पारा, कमलनाथ ने जारी किया VIDEO, शिवराज ने किया बड़ा दावा

डेस्क: मध्य प्रदेश में चुनाव के नतीजे 3 दिसंबर को आएंगे लेकिन एग्जिट पोल को लेकर सूबे में सियासी माहौल अभी से गरम हो गया है। कांग्रेस के नेता कमलनाथ ने एग्जिट पोल को लेकर बड़ा बयान देते हुए कहा है कि कुछ एग्जिट पोल जानबूझकर इसलिए बनाए गए हैं कि कांग्रेस कार्यकर्ता निराश हों और झूठा माहौल दिखाकर अधिकारियों पर दबाव बनाया जाए। उन्होंने कार्यकर्ताओं से मतगणना की प्रक्रिया के लिए तैयार रहने की अपील की है और उन्हें पूरी ताकत से मैदान में आने को कहा है। वहीं, सीएम शिवराज सिंह चौहान दावा कर रहे हैं कि BJP चुनावों में बड़ी जीत दर्ज करने जा रही है।

एग्जिट पोल में बीजेपी को 140 से 159 सीटें

मध्य प्रदेश विधानसभा की 230 सीटों पर एक दिन बाद काउंटिंग शुरू हो जाएगी, लेकिन मतगणना से पहले आए एग्जिट पोल ने जहां बीजेपी नेताओं के चेहरे पर खुशी ला दी है, वहीं कांग्रेसी खेमा थोड़ा मायूस दिख रहा है। हालांकि कमलनाथ ने एग्जिट पोल को खारिज कर दिया है और काउंटिंग से पहले वीडियो जारी कर पार्टी कार्यकर्ताओं में जोश बढ़ाने का काम कर रहे हैं। बता दें कि इंडिया टीवी-CNX के एग्जिट पोल के मुताबिक मध्य प्रदेश की कुल 230 सीटों में से BJP के खाते में 140 से 159 सीटें जा सकती हैं जबकि कांग्रेस को 70 से 89 सीटें मिल सकती हैं। अन्य के खाते में शून्य से 2 सीटें आ सकती हैं।

कांग्रेस ने अपने प्रभारियों को दिए निर्देश

एग्जिट पोल के आंकड़ों से सीएम शिवराज सिंह चौहान काफी खुश हैं। उनका दावा है कि बीजेपी फिर सत्ता में वापसी करने जा रही हैं। इस बीच काउंटिंग से पहले कांग्रेस मुख्यालय में हलचल तेज हो गई है। पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने चुनावी राज्यों के सभी प्रभारियों और पर्यवेक्षकों को आदेश दिया है कि कि उन्हें जिस राज्य की जिम्मेदारी दी गई है, वे वहीं रहें। पार्टी के नेताओं को साथ ही वोटों की गिनती पर नजर रखने को कहा गया है। अब सभी को इंतजार 3 दिसंबर का है जब 4 राज्यों की ईवीएम खुलेगी और 2024 के फाइनल से पहले सत्ता के सेमीफाइनल के नतीजे आएंगे।

तूफान के असर से तटीय राज्यों में भारी बारिश की आशंका, तमिलनाडु के कई जिलों में चेतावनी जारी

रिपोर्ट -नितेश श्रीवास्तव

तमिलनाडु में भारी बारिश की आशंका है। इस बीच तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने 12 जिला प्रशासन प्रमुखों के साथ समीक्षा बैठक की। सीएम ने अधिकारियों को भारी बारिश से आगाह किया। उन्होंने अधिकारियों को उचित दिशा निर्देश दिए। मौसम विभाग के अनुसार, तेज बारिश के साथ-साथ प्रदेश के तटीय इलाकों में मिचौंग तूफान की भी आशंका है।

गहरे अवसाद में बदल जाएंगे बादल

विशापट्टनम चक्रवात चेतावनी केंद्र की एमडी सुनंदा कहती हैं कि निचले दबाव का क्षेत्र अब दक्षिण-पूर्व और आसपास के क्षेत्रों के पास एक अवसाद में बदल गया है। अगले 24 घंटों में यह गहरे अवसाद में बदल जाएगा। इसके अगले 24 घंटे में यह चक्रवाती तूफान बन जाएगा। तेजी के साथ यह उत्तर-पश्चिम दिशा की ओर बढ़ रहा है। मिचौंग तूफान उत्तर-पश्चिम दिशा में आगे बढ़ेगा और उत्तरी तमिलनाडु और आंध्र प्रदेश के समुद्री किनारों तक पहुंच जएगा। तीन दिसंबर से उत्तरी तमिलनाडु और दक्षिणी आंध्र तट पर हवाओं और बारिश में इजाफा होगा। तूफान के आगे बढ़ते ही बारिश शुरू हो जाएगी। तमिलनाडु के समुदी किनारों में हल्की से मध्यम बारिश होगी तो वहीं प्रदेश के अलग-अलग इलाकों में भारी से बहुत अधिक भारी बारिश होने की आशंका है। 

देखें, किन जिलों का कैसा रहेगा हाल

 

चेन्नई मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार, तमिलनाडु के तिरुवल्लूर, कांचीपुरम, चेंगलपट्टू, चेन्नई, तेनकासी, थूथुकुडी, तिरुनेलवेली और कन्नियाकुमारी जिलों के विभिन्न स्थानों पर मध्यम गरजना के साथ-साथ बिजली गिरने की संभावना है। इसके साथ राज्य के विल्लुपुरम, रानीपेट, कुड्डालोर, तंजावुर, नागापट्टिनम, मयिलादुथुराई, तिरुवरूर, रामनाथपुरम, तिरुपुर, डिंडीगुल, पुदुकोट्टई, विरुधुनगर नीलगिरी और थेनी जिलों और पुडुचेरी और कराईकल में अलग-अलग स्थानों पर हल्की आंधी और बिजली गिरने की संभावना है। 

समुद्र में न जाने की चेतावनी

मौसम विभाग ने बंगाल की खाड़ी के दक्षिण-पूर्व के हिस्सों तथा दक्षिण पश्चिम बंगाल की खाड़ी में मछुआरों को मछली पकड़ने और किसी तरह के व्यापार से संबंधित काम के लिए न जाने की चेतावनी जारी की है।

आज पश्चिमी उत्तर प्रदेश में कोहरा, पूर्वी में बारिश का अलर्ट अब 5 दिसंबर तक बरसेंगे बादल, चक्रवाती तूफान ने बिगाड़ा मौसम

रिपोर्ट -नितेश श्रीवास्तव

उत्तर प्रदेश के 25 शहरों में 24 घंटे में 1.1 मिली बारिश रिकार्ड की गई। आज के लिए भी मौसम विभाग ने 12 शहरों में हल्की बारिश की संभावना जताई है। बारिश का दौर 5 दिसंबर तक जारी रहेगा। इस दौरान पश्चिमी उत्तर प्रदेश के 15 जिलों में घना कोहरा छाया रहेगा।

इन जिलों में घना कोहरा छाएगा

मौसम विभाग के मुताबिक, सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, बिजनौर, बागपत, मेरठ, गाजियाबाद, मुरादाबाद,बंदायू, रामपुर, बरेली, पीलीभीत, शाहजहांपुर, लखीमपुर-खीरी, हरदोई, सीतापुर और बाराबंकी में घना कोहरा छाने का अलर्ट जारी किया गया है।

इन जिलों में आज बारिश का अलर्ट

मौसम विभाग की मानें तो कानपुर नगर, कानपुर देहात, लखनऊ, चित्रकूट, मिर्जापुर, प्रयागराज, औरेया, सोनभद्र, वाराणसी, फर्रुखाबाद, कन्नौज, इटावा में बारिश को लेकर अलर्ट जारी किया गया है।

चक्रवात तूफान ने बिगाड़ा मौसम

मौसम वैज्ञानिक एस‌एन पांडेय ने बताया कि बंगाल की दक्षिण - पूर्व खाड़ी के ऊपर स्पष्ट रूप से चिह्नित निम्न दबाव का क्षेत्र पिछले 12 घंटों के दौरान पश्चिमी उत्तर पश्चिम की ओर बढ़ा और स्थिर हो गया। यह 2 दिसंबर तक एक गहरे दबाव में तब्दील हो रहा है। 3 दिसंबर को बंगाल की दक्षिण - पश्चिम खाड़ी के ऊपर एक चक्रवाती तूफान में तब्दील हो सकता है।

लखनऊ - 5 दिसंबर तक सुबह घना कोहरा छाएगा हालांकि बारिश के आसार भी बने हुए हैं। 

वाराणसी - आज बारिश के आसार हैं। 3,4, और 5 दिसंबर को सुबह घना कोहरा छाएगा

प्रयागराज - आज बारिश की संभावना है। 3 दिसंबर घना कोहरा छाएगा और 4 को बारिश के बाद 5 दिसंबर को घना कोहरा छाएगा

2000 रुपये के नोट वैध मुद्रा बने रहेंगे..', RBI के नए ऐलान से मची हलचल, डिटेल में जानिए, आखिर क्या है मायने

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने आज यानी शुक्रवार को ऐलान करते हुए बताया है कि प्रचलन में मौजूद 2,000 रुपये के 97 प्रतिशत से अधिक नोट वापस बैंकों में आ गए हैं। RBI ने आगे कहा कि 2,000 रुपये मूल्यवर्ग के नोट वैध मुद्रा बने रहेंगे। बता दें कि, इस साल 19 मई को RBI ने 2,000 रुपये मूल्य वर्ग के बैंक नोटों को प्रचलन से वापस लेने का ऐलान किया था।

RBI ने आज शुक्रवार को एक बयान में कहा कि, '2000 रुपये के बैंक नोटों का कुल मूल्य, जो 19 मई, 2023 को कारोबार की समाप्ति पर 3.56 लाख करोड़ रुपये था, जब 2000 रुपये के बैंक नोटों को वापस लेने की घोषणा की गई थी, 30 नवंबर, 2023 को कारोबार समाप्ति के समय घटकर 9,760 करोड़ रुपये हो गया है।' कहा गया है कि, "इस प्रकार, 19 मई, 2023 तक प्रचलन में 2000 रुपये के 97.26 प्रतिशत बैंक नोट वापस आ गए हैं।"

 RBI ने ये भी कहा, "2000 रुपये के नोट वैध मुद्रा बने रहेंगे।" 2000 रुपये के बैंक नोटों को जमा करने या बदलने की सुविधा शुरुआत में 30 सितंबर 2023 तक देश की सभी बैंक शाखाओं में उपलब्ध थी, जिसे बाद में 7 अक्टूबर तक बढ़ा दिया गया था। एक्सचेंज की सुविधा 19 मई से रिजर्व बैंक के 19 इश्यू ऑफिस (RBI इश्यू ऑफिस) पर भी उपलब्ध थी। 9 अक्टूबर 2023 से, RBI जारी कार्यालय, काउंटरों पर 2,000 रुपये मूल्यवर्ग के बैंकनोटों का आदान-प्रदान करने के अलावा, व्यक्तियों/संस्थाओं से उनके बैंक खातों में जमा करने के लिए 2,000 रुपये के बैंकनोट भी स्वीकार कर रहे हैं।

इसके अलावा, देश के भीतर से जनता के सदस्य भारत में अपने बैंक खातों में क्रेडिट के लिए देश के किसी भी डाकघर से आरबीआई के किसी भी जारी कार्यालय में इंडिया पोस्ट के माध्यम से 2000 रुपये के बैंक नोट भेज सकते हैं।

प्रधानमंत्री मोदी का नाम लेकर बिहार के अधिकारियों को केंद्रीय मंत्री ने दी धमकी, बोले- 'जो कार्यक्रम में नहीं आ रहे उन्हें देख लेंगे...'

 बिहार के बक्सर के सांसद तथा केंद्रीय मंत्री अश्विनी कुमार चौबे का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। बताया जा रहा है कि केंद्रीय मंत्री ने अफसरों को धमकी दी है। वह बक्सर में आम सभा को संबोधित करने एवं केंद्र सरकार की योजनाओं को आम जनता तक पहुंचाने के लिए कार्यक्रम में पहुंचे थे। 

दरअसल, गुरुवार को केंद्रीय मंत्री अश्विनी कुमार चौबे विकसित भारत के तहत होने वाले कार्यक्रम के सम्मिलित होने के लिए बक्सर पहुंचे थे। यहां उनके द्वारा आम जनता की परेशानियों को भी सुना गया। इस के चलते कई विभाग के ऐसे अफसर अनुपस्थित रहे, जिनकी कार्यक्रम में आवश्यकता थी। कार्यक्रम में आए लोगों को संबोधित करते हुए अश्विनी कुमार चौबे ने कहा ''बिहार में इस वक़्त हमारी सरकार नहीं है, इसलिए आप (सरकारी अफसर, कर्मचारी) इन कार्यक्रमों में नहीं आ रहे हैं, मगर यह भूलिए मत कि आगामी 24 में जब नरेंद्र मोदी की सरकार बिहार के सत्ता पर काबिज होगी तो आप जैसे अफसरों को मोदी की सरकार देख लेने का काम करेगी।''

 कहा कि यदि 2024 में बिहार की सत्ता पर NDA गठबंधन काबिज होता है तो उन अफसरों को नरेंद्र मोदी देख लेंगे, सभी की छुट्टी में कटौती कर दी जाएगी। 2024 में नरेंद्र मोदी की सरकार बिहार की सत्ता पर काबिज होने वाली है। इस के चलते जब हमारी सरकार बिहार में नहीं है तो कुछ अफसर केंद्र सरकार के कार्यक्रमों में नहीं आने के लिए छुट्टियां ले रहे हैं। मैं उन अफसरों को सचेत करना चाहता हूं कि 2024 में हमारी सरकार बनने वाली है। अगर, बन गई तो उन अफसरों को नरेंद्र मोदी देख लेंगे। उन्होंने कहा कि नरेंद्र मोदी ऐसे अफसरों को नहीं छोड़ने वाले हैं जो इस के चलते केंद्र सरकार की योजनाओं में रुचि नहीं दे रहे हैं।