राजनैतिक दलों के समक्ष हुआ ईवीएम और वीवी पैट का रेण्डमाईजेशन

रायपुर-  विधानसभा निर्वाचन हेतु रायपुर जिले के सातों विधानसभा के लिए राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों के समक्ष ईवीएम एवं वीवी पैट मशीनों का आज रेडक्रॉस सभाकक्ष में प्रथम रेण्डमाईजेशन किया गया। 

रेण्डमाईजेशन के पश्चात फाईनालाईज्ड किए गये ईवीएम बैलेट यूनिट, कंट्रोल यूनिट, वीवी पैट मशीन में उल्लेख आईडी नंबर सहित सूची राजनैतिक दल के प्रतिनिधियों को उपलब्ध कराई गई।

कलेक्टर डॉ. सर्वेश्वर नरेन्द्र भुरे ने निष्पक्ष एवं पारदर्शी चुनाव प्रक्रिया हेतु सभी दलों के प्रतिनिधियों से आग्रह किया है कि वे सूची के आधार पर ईवीएम बैलेट एवं कंट्रोल यूनिट, वीवी पैट का मिलान स्टाप रूम में विधानसभावार रखते समय कर सकते हैं। उन्होंने बताया कि विधानसभावार मशीनों का प्रथम रेण्डमाईजेशन कर लिया गया है। रेण्डमाईजेशन पश्चात मशीनों को स्ट्रांग रूम में विधानसभा के अनुसार सुरक्षित रखवाया जाएगा।

रेण्डमाईजेशन की प्रक्रिया में विधानसभा अंतर्गत कुल 1768 है जिनमें रायपुर क्षेत्र के 1759 मतदान एवं 09 सहायक केंद्र है। इस से 20 प्रतिशत अधिक बैलेट एवं कंट्रोल यूनिट तथा 30 प्रतिशत अधिक वीवी पैट मशीनों का चयन किया गया। जिले में 5036 बैलेट यूनिट, 2621 कंट्रोल यूनिट और 2872 वीवी पैट एफएलसी ओके मशीनों का रेण्डमाईजेशन किया गया।

मतदान केंद्रों में ईवीएम एवं वीवीपैट मशीनों का उपयोग करने के पहले पारदर्शिता के लिए विभिन्न चरणों में मशीनों का रेंडमाइजेशन किया जाता है। आज मशीनों का प्रथम रेंडमाइजेशन भारत निर्वाचन आयोग के ऑनलाइन सॉफ्टवेयर में किया गया। रेंडमाइजेशन के बाद इसका प्रिंट निकालकर सभी राजनीतिक दलों के पदाधिकारियों से हस्ताक्षर कराने के बाद उन्हे इसकी प्रतिया प्रदान की गई। इसके बाद वेयर हाउस में अलग-अलग कक्षों में रखे सीयू, बीयू एवं वीवीपैट का अवलोकन कराया गया। पदाधिकारियों को स्ट्रांग रूम का अवलोकन कराने के साथ ही चुनाव से संबंधित अन्य गतिविधियों की जानकारी दी गई। इस अवसर पर नगर निगम आयुक्त मयंक चतुर्वेदी, उप जिला निर्वाचन अधिकारी गजेन्द्र ठाकुर, अपर कलेक्टर बी.बी.पंचभाई एवं राजनौतिक दलों के प्रतिनिधि उपस्थित थे।

भाजपा बोली- छत्तीसगढ़ के पैसे से कांग्रेस का पोषण, कांग्रेस का पलटवार- भाजपा अदाणी के साथ

रायपुर -   भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष अरुण साव ने शुक्रवार को आरोप लगाया कि आखिरकार मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने मान ही लिया कि वह एटीएम हैं। हमारी पार्टी तो बहुत पहले से ही कहती आ रही है कि प्रदेश की भूपेश सरकार ने छत्तीसगढ़ के कांग्रेस की एटीएम बना रखा है और यहां की जनता की गाढ़ी कमाई का पैसा लूटकर वह कांग्रेस और उसके 'खानदानी' आकाओं की तिजोरी भर रही है।

समूची कांग्रेस के राजनीतिक पोषण में छत्तीसगढ़ के खजाने का पैसा जा रहा है। साव ने कहा कि भाजपा ने तो बाकायदा इसके लिए 'भू-पे' लांच किया है ताकि प्रदेश की जनता को पता चले कि कांग्रेस ने ऐसा कोई क्षेत्र बाकी नहीं छोड़ा जहां उसने घोटाला नहीं किया।

भाजपा के नेता अदाणी के व्यावसायिक हित के साथ : दीपक बैज

इधर, कांग्रेस के प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने कहा कि हसदेव अरण्य क्षेत्र में कोल खनन रद होना भूपेश सरकार की बड़ी जीत है और अदाणी के साथ खड़े भाजपा की हार है। जंगल को बचाने की लड़ाई में भूपेश बघेल सरकार कांग्रेस आदिवासियों के साथ खड़ी थी और केंद्र की मोदी की सरकार अपने मित्र अदाणी के मुनाफे के लिए अड़ी हुई थी। हसदेव अरण्य, तमोर पिंगला और लेमरू एलिफेंट रिजर्व के भीतर नो गो एरिया में आने वाले 40 खदानों में खनन गतिविधियां बंद कराने का फ़ैसला भूपेश बघेल सरकार की बड़ी जीत है।

कट्टा और जिंदा कारतूस के साथ आरोपित गिरफ्तार, बिहार से लेकर आया था हथियार

रायपुर-   कट्टा और जिंदा कारतूस के साथ अंतरराज्यीय आरोपित रूपेश कुमार यादव को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। आरोपित रूपेश कुमार यादव निवासी ग्राम खोरीपारा थाना दरखा जिला छपरा बिहार हाल पता त्रिमुर्ति चौक उरला को गिरफ्तार किया गया है। आरोपित के पास पांच नग जिंदा कारतूस मिले हैं। आरोपित बड़ी वारदात को अंजाम देने की फिराक में था। पूछताछ में उसने बिहार छपरा से कट्टा और कारतूस लाना बताया। उरला थाने में आम्र्स एक्ट के तहत कार्रवाई की गई।

गुरुवार को एंटी क्राइम एवं साइबर यूनिट की टीम को सूचना प्राप्त हुई कि थाना उरला क्षेत्रांतर्गत राजेंद्र नगर रोड पास एक व्यक्ति अपने पास कट्टा रखा है। आने जाने वाले लोगों को आतंकित कर रहा है। सूचना पर क्राइम और थाना उरला पुलिस की संयुक्त टीम द्वारा उक्त स्थान पर जाकर मुखबीर द्वारा बताए हुलिए के व्यक्ति को चिन्हांकित कर पकड़ा गया।

पूछताछ में व्यक्ति ने अपना नाम रूपेश कुमार यादव निवासी उरला रायपुर का होना बताया। टीम के सदस्यों द्वारा रूपेश कुमार यादव की तलाशी लेने पर उसके पास कट्टा तथा जिंदा कारतूस रखा होना पाया गया। जिस पर आरोपित रूपेश कुमार यादव को गिरफ्तार कर उसके कब्जे से अवैध रूप से रखे एक नग कट्टा और पांच जिंदा कारतूस जब्त किया गया।

टिकट से वंचित कांग्रेस विधायकों को भाजपा ने दिया प्रस्ताव, कहा- सबका स्वागत

रायपुर-  भाजपा सांसद सुनील सोनी ने टिकट से वंचित कांग्रेस विधायकों को पार्टी में शामिल होने के लिए खुला न्यौता दिया है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकार को उखाड़ने के लिए जो कुछ बन पड़ेगा, हम करेंगे। कांग्रेस चप्पल घिसवाने वाली पार्टी हैं, जिन्हें टिकट नहीं मिली, उनका भाजपा में स्वागत है।

शुक्रवार को पत्रकारवार्ता के दौरान सुनील सोनी ने राज्यसभा के उप नेता प्रतिपक्ष प्रमोद तिवारी के बयानों पर तंज कसते हुए कहा कि प्रमोद तिवारी दिल्ली से सोनिया गांधी के रट्टू तोता बनकर आए हैं। प्रमोद तिवारी से हमारा यह सवाल है कि वह किस आधार पर छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश, राजस्थान, तेलंगाना, और मिजोरम जीतने का दम भर रहे हैं, जबकि उनके नेता राहुल गांधी भी ऐसा कहने की स्थिति में नहीं हैं। इन राज्यों में भाजपा शत-प्रतिशत जीत रही है।

सोनी पहले अपने घर की आग बुझाए : वैष्णव

प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता मणि वैष्णव ने सुनील सोनी के बयानों पर पलटवार करते हुये कहा कि सोनी पहले अपने घर की आग बुझाएं। उसके बाद किसी और की चिंता करें। भाजपा की पहली सूची जारी करने के बाद से ही कोई भी ऐसी विधानसभा नहीं बची है, जहां सिर फुटव्वल और विद्रोह की स्थिति न बनी हो। भाजपा की पहली सूची जब लीक हुई तब उस सूची को देखकर कार्यकर्ताओं के बीच भयंकर आक्रोश उत्पन्न हुआ।

यहां तक की भाजपा चुनाव प्रभारी मनसुख मांडविया के सामने भी भाजपा कार्यकर्ताओं ने प्रदर्शन किए, जिसे देखकर भाजपा प्रभारी बेहद नाराज भी हुए थे। भाजपा कार्यकर्ताओं का आक्रोश इस स्तर तक पहुंच गया कि कार्यकर्ताओं ने भाजपा मुख्यालय में डेरा जमा लिया।

75 से अधिक सीटें हासिल करेगी कांग्रेस : सीएम भूपेश बघेल

रायपुर-   छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने विधानसभा चुनाव में किसानों के मतों को निर्णायक बताया है और कहा है कि उनके समर्थन से कांग्रेस को 75 से अधिक सीटें हासिल करने में मदद मिलेगी। ‘पीटीआई-भाषा’ को दिए एक साक्षात्कार में बघेल ने यह भी कहा कि उनकी सरकार ने राज्य में शराबबंदी लागू करने की कोशिश की, जो पिछले विधानसभा चुनाव में पार्टी द्वारा किए गए प्रमुख वादों में से एक था, लेकिन वह इसे लागू नहीं कर पाये क्योंकि कई लोगों ने नकली शराब पीना शुरू कर दिया था तथा उनमें से कई की मृत्यु हो गई।

छत्तीसगढ़ की 90 सदस्यीय विधानसभा के लिए सात और 17 नवंबर को दो चरणों में चुनाव होंगे। बघेल से जब पूछा गया कि ऐसे कौन से मुद्दे हैं जिनसे कांग्रेस को 75 से अधिक सीटें मिल सकती हैं, तब उन्होंने कहा ‘सबसे बड़ा मुद्दा किसान है और फिर महिलाएं, युवा और व्यवसायी हैं। हमने विभिन्न योजनाओं के माध्यम से किसानों और युवाओं की जेब में पैसा डाला है। जब बाजार में पैसा पहुंचता है, तो व्यापारी भी खुश हो जाते हैं।” मुख्यमंत्री ने कहा, ”हमने पिछले पांच वर्षों में किसानों और तेंदूपत्ता संग्राहकों (तेंदूपत्तों का उपयोग बीड़ी बनाने के लिए किया जाता है) से किया गया वादा पूरा किया है। इसी तरह, शिक्षा, स्वास्थ्य, संस्कृति और बुनियादी ढांचे के क्षेत्रों में काम किया गया है। इन सभी कार्यों से लोगों के जीवन में विशेष रूप से आर्थिक रूप से बदलाव आया है।

” बघेल ने कहा कि कांग्रेस सरकार में किसानों की आर्थिक स्थिति में सुधार हुआ और महिला स्वयं सहायता समूहों को रोजगार मिला। उन्होंने कहा, ”राजीव गांधी किसान न्याय योजना, राजीव गांधी ग्रामीण कृषि मजदूर न्याय योजना और गोधन न्याय योजना सहित राज्य सरकार की कई योजनाओं ने लोगों के जीवन को बदल दिया है।” बघेल ने कहा, ”आदिवासियों के ‘जल, जंगल, जमीन’ के अधिकारों की रक्षा के प्रयास किए गए। कभी नक्सलवाद से जल रहे बस्तर में शांति लौट रही है। ये सभी मुद्दे हमें (चुनाव में) मदद करेंगे।”

उन्होंने कहा, ”हमने किसानों से प्रति एकड़ 20 क्विंटल धान खरीदने का फैसला किया है और प्रधानमंत्री आवास योजना में केंद्र के सहयोग नहीं करने के बाद अपनी आवास योजना शुरू की है। प्रियंका गांधी जी ने राज्य में जातिगत जनगणना कराने की घोषणा की है। हमने अब तक ये तीन प्रमुख घोषणाएं की हैं, लेकिन भाजपा इस पर चुप है कि वह क्या करेगी और वह सिर्फ आरोप लगा रही है।” बघेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार की तीन प्रमुख किसानोन्मुख योजनाओं ने कांग्रेस को पिछले पांच वर्षों में राज्य के ग्रामीण और अर्ध-शहरी क्षेत्रों में अपनी स्थिति मजबूत करने में मदद की है। यह पूछे जाने पर कि क्या शराबबंदी के वादे को पूरा करने में कांग्रेस की विफलता से उसके महिला वोट बैंक पर असर पड़ेगा, बघेल ने कहा, ”हमने शराबबंदी लागू करने की कोशिश की और कोविड-19 महामारी के दौरान यह किया जा सकता था, लेकिन तब जहरीली शराब पीने से लोगों की मौत हो गई। हम लोगों को यह समझाने की कोशिश कर रहे हैं कि नशा एक सामाजिक बुराई है और इसे हमें मिलकर खत्म करना होगा। भाजपा ने अपने 15 साल के शासनकाल में कुछ नहीं किया। उसने इसे लागू क्यों नहीं किया। मैं मोदी जी से पूरे देश में शराब पर प्रतिबंध लगाने की मांग करूंगा।” संविदा कर्मचारियों के नियमितीकरण के लंबित वादे पर उन्होंने कहा, ”हमने संविदा कर्मियों के मानदेय में काफी वृद्धि की है। 27 फीसदी से 40 फीसदी तक की वृद्धि हम लोगों ने की है। इससे लोगों को लाभ हुआ है। वे काफी हद तक संतुष्ट भी हैं।” चुनाव के लिए टिकट से इनकार किए जाने के बाद कुछ मौजूदा कांग्रेस विधायकों में असंतोष के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, ”करीब 83 टिकट हम लोग बांट चुके हैं। लेकिन दो चार जगह नाराजगी तो रहती है। जिसका टिकट कटेगा उसकी नाराजगी तो स्वाभाविक है। वे हमारे परिवार के सदस्य हैं। उन लोगों से बात करेंगे। लगातार बातचीत हो भी रही है। बहुत सारे लोग हैं जो मान भी गए हैं। और लोग भी नाराज हैं, उनसे भी बात की जायगी।”

उन्होंने चुनाव के लिए टिकट वितरण पर भी भाजपा पर कटाक्ष किया और कहा, ”यहां भाजपा चुनाव नहीं लड़ रही है। रमन सिंह लड़ रहे हैं। और रमन सिंह के पीछे अमन सिंह (रमन सिंह के प्रमुख सचिव रहे) हैं। अमन सिंह अडानी के आदमी हैं। इसलिए रमन ही सब कुछ हैं यहां, भाजपा कुछ नहीं है।” यह पूछे जाने पर कि क्या उनकी पार्टी फिर से सरकार बनाती है तब राज्य में अडानी पर प्रतिबंध लगाएगी, उन्होंने कहा, ”प्रतिबंध लगाने की बात नहीं है, एनएमडीसी खुद लौह अयस्क उत्पादक है, तो दूसरे को एमडीओ क्यों दे।” बघेल ने कहा, ”जब सार्वजनिक उपक्रम में हमारे इस्पात संयंत्र चल रहे हैं तो सरकार द्वारा बनाया गया इस्पात संयंत्र निजी हाथों में क्यों जाएगा। एसईसीएल सबसे बड़ा कोयला उत्पादक है, पर अपनी खदान को अडानी को दे, तो ये गलत है। जो गलत है उसका विरोध हो रहा है। अडानी से हमारी कोई दुश्मनी नहीं है। लेकिन सारी चीज अडानी को जाए, यह गलत बात है।”

राज्य में उनकी सरकार द्वारा लागू की गई पुरानी पेंशन योजना को लेकर पूछे गए सवाल के जवाब में उन्होंने कहा, ”हम लोगों ने अध्ययन किया है कि 2060 तक राज्य सरकार पर कोई भार नहीं पड़ेगा। लेकिन केंद्र सरकार को हमारे 17000 करोड़ रुपए लौटाने होंगे।” उन्होंने कहा, ”यदि भाजपा गलती से उन राज्यों (जहां ओपीएस बहाल हो गई है) में चुनी जाती है, तो वह तुरंत ओपीएस की जगह एनपीएस लागू कर देगी।”

चुनाव के दौरान 48 घंटे पहले से बंद रहेंगी सभी मदिरा दूकाने, कलेक्टरों को निर्देश जारी

रायपुर-   भारत निर्वाचन आयोग एवं मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी छत्तीसगढ़ द्वारा प्राप्त निर्देशों के परिपालन में वाणिज्यिक कर (आबकारी) विभाग ने छत्तीसगढ़ विधानसभा सामान्य निर्वाचन 2023 दौरान शराब की बिक्री पर प्रतिबन्धात्मक कार्यवाही करने, मतदान तिथि दिनांक 07-11-2023 व 17-11-2023 को मतदान समाप्ति के 48 घण्टे पूर्व से मतदान समाप्ति तक की अवधि तथा मतगणना तिथि दिनांक 03-12-2023 को संपूर्ण दिन के लिये शुष्क दिवस घोषित करने के संबंध में दिनांक 19-10-2023 को समस्त जिलों के कलेक्टर को निर्देश जारी कर दिया हैं।

उक्त निर्देश के अनुसार संबंधित विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र में स्थित समस्त देशी / विदेशी / कम्पोजिट मदिरा दुकानों के साथ-साथ मदिरा का व्यापार करने वाले समस्त प्रकार के बार / क्लब / सैनिक कँटिन / देशी मदिरा भण्डारण भाण्डागार एवं विदेशी मदिरा गोदामों के साथ-साथ मदिरा निर्माण करने वाली सभी आसवनी एवं बॉटलिंग यूनिट तथा ब्रुअरी को छत्तीसगढ़ आबकारी अधिनियम 1915 की धारा 24 के अंतर्गत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुये मतदान तिथि दिनांक 07-11-2023 व 17-11-2023 को मतदान समाप्ति के 48 घण्टे के पूर्व से लेकर मतदान समाप्ति तक समस्त आबकारी केन्द्रों को पूर्ण रूप से बंद रखे जाने बाबत् कलेक्टरों को निर्देश जारी किया है।

उपरोक्त आदेश अनुसार मतगणना की तिथि दिनांक 03-12-2023 को भी संपूर्ण दिवस के लिये मतगणना स्थल क्षेत्रों में स्थित समस्त प्रकार के आबकारी केन्द्रों के लिये शुष्क दिवस के रूप में घोषित करते हुये प्रतिबन्धित क्षेत्रों में मंदिरा बेचने व परोसनें को प्रतिबन्धित किये जाने बाबत् कलेक्टरों को आवश्यक कार्यवाही करने के निर्देश दिये गये है। साथ ही उक्त अवधि दौरान मदिरा के व्यक्तिगत भण्डारण एवं गैर लायसेंसी परिसरों में मदिरा के भण्डारण पर आबकारी नियमों के तहत सक्ती से रोक लगाये जाने के संबंध में भी समस्त जिला कलेक्टर छत्तीसगढ़ को निर्देशित किया गया है।

उपरोक्त आदेश में मदिरा के साथ-साथ भांग / भांग घोटा दुकानों को भी मतदान समाप्ति के 48 घण्टे के पूर्व से लेकर मतदान समाप्ति तक बंद रखे जाने हेतु आदेशित किया है। मतदान के दिवसों में विधानसभा क्षेत्र के संलग्न अन्य जिले एवं अन्य राज्य की मदिरा दुकानों एवं अन्य स्थलों को बंद रखे जाने के निर्देश भी दिए गए है। इस संबंध में छत्तीसगढ़ राज्य के सीमा से लगे अन्य राज्यों को भी आवश्यक कार्यवाही हेतु लिखा गया है।

छग विधानसभा निर्वाचन-2023 : अधिकारियों-कर्मचारियों को मिलेगी निःशुल्क चिकित्सा सुविधा, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग ने जारी किया आदेश

रायपुर-  छत्तीसगढ़ विधानसभा निर्वाचन-2023 के लिए निर्वाचन कार्य में नियोजित शासकीय अधिकारियों और कर्मचारियों को राज्य के समस्त शासकीय चिकित्सालयों में निःशुल्क चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग द्वारा जारी आदेश के अनुसार राज्य के शासकीय अस्पतालों में आवश्यक स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध नहीं होने अथवा आपातकालीन स्थिति के लिए अधिकारी-कर्मचारी राजधानी रायपुर के 4 तथा राज्य के बाहर 2 निजी अस्पतालों में अपना इलाज करा सकेंगे।

उल्लेखनीय है कि छत्तीसगढ़ विधानसभा निर्वाचन 2023 को सफलतापूर्वक सम्पन्न कराने के उद्देश्य से आयोग के निर्देश पर विभिन्न विभागों के अधिकारियों-कर्मचारियों की ड्यूटी लगाई गई है। निर्वाचन कार्य में आदेशित अधिकारियों-कर्मचारियों के लिए राज्य के समस्त शासकीय अस्पतालों में निःशुल्क चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी।

शासकीय अस्पतालों में आवश्यक सुविधा उपलब्ध ना होने की स्थिति में अथवा आपातकालीन स्थिति के लिए निःशुल्क चिकित्सा सुविधा प्रदान करने हेतु राज्य एवं राज्य के बाहर अस्पतालों को भी चिन्हांकित किया गया है। राज्य के भीतर राजधानी रायपुर स्थित श्री बालाजी अस्पताल मोवा, श्री नारायणा अस्पताल देवेन्द्र नगर रायपुर, रामकृष्ण केयर अस्पताल पचपेड़ी नाका रायपुर तथा एनएचएमएमआई अस्पताल पचपेड़ी नाका रायपुर में इलाज की सुविधा उपलब्ध होगी। इसी प्रकार राज्य के बाहर हैदराबाद स्थित केयर हॉस्पिटल तथा विशाखापट्टनम के अपोलो अस्पताल में इलाज की सुविधा उपलब्ध होगी। आदेश में उल्लेखित किया गया है कि निर्वाचन कार्य में शामिल शासकीय अधिकारी-कर्मचारी एवं अशासकीय अधिकारी-कर्मचारी तथा सुरक्षा बलों एवं स्टाफ के उपचार की सुविधा जिले के शासकीय चिकित्सालयों में उपलब्ध ना होने की स्थिति में जिला प्रशासन के माध्यम से राज्य नोडल एजेंसी, प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना एवं मुख्यमंत्री स्वास्थ्य बीमा योजना, संचालनालय स्वास्थ्य सेवाएं द्वारा इन चिकित्सालयों में रिफर किए जाएंगे। जिला प्रशासन द्वारा इस संबंध में डॉ. खेेमराज सोनवानी, उप संचालक, राज्य नोडल एजेंसी (मो. नंबर 98278-72102, 0771-4026201) के साथ समन्वय कर कार्य संपादित किया जाएगा।

महादेव एप के सौरभ ने आनलाइन सट्टा से की 6 हजार करोड़ की कमाई, कोर्ट में 14 के खिलाफ चालान पेश

रायपुर-   महादेव एप आनलाइन सट्टे के मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा आरोपित बनाए गए एप संचालक सौरभ चंद्राकर, रवि उप्पल की अनुमानित आय 6,000 करोड़ रुपये होने का आंकलन किया गया है। ईडी ने इस मामले में आरोपित बनाए गए एप के संचालक सौरभ चंद्राकर, रवि उप्पल समेत कुल 14 लोगों के खिलाफ न्यायालय में अभियोग पत्र (चालान) पेश किया। 8,887 पन्नों के इस अभियोग पत्र में ये भी बताया गया कि इस केस में आरोपितों की 41 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त की जा चुकी है।

ईडी के अधिवक्ता सौरभ पांडेय ने बताया कि आरोपितों में न्यायिक रिमांड पर रायपुर सेंट्रल जेल में पिछले करीब दो महीने से बंद निलंबित एएसआइ चंद्रभूषण वर्मा,सतीश चंद्राकर, सुनील दम्मानी, अनिल दम्मानी के साथ ही फरार सौरभ चंद्राकर, रवि उप्पल, विकास छाबड़िया, विशाल आहूजा, नीरज आहूजा, सृजन एसोसिएट के संचालक पूनाराम वर्मा और शिवकुमार वर्मा, यशोदा वर्मा, पवन नत्थानी के साथ पृथक से पूनाराम और शिवकुमार वर्मा के नाम शामिल है। बता दें कि ईडी ने महादेव एप सट्टेबाजी में मनी लांड्रिंग का राजफाश किया था। उसके बाद से लगातार कार्रवाई की जा रही है।

12 आरोपितों की 68 संपत्तियों की ईडी ने मांगी जानकारी

महादेव एप सट्टेबाजी के करोड़ों रुपये प्रापर्टी में निवेश करने की आशंका पर ईडी के अधिकारियों ने रजिस्ट्री कार्यालय के जिला पंजीयक से जेल में बंद हवाला कारोबारी सुनील और अनिल दम्मानी के साथ निलंबित एएसआइ चंद्रभूषण वर्मा, रूप कुमार वर्मा समेत 12 लोगों की 68 संपत्तियों की जानकारी मांगी है।

जानकारी के मुताबिक ईडी की जांच में साफ हुआ है कि महादेव एप सट्टेबाजी के खेल में करोड़ों बटोरने वाले आरोपितों ने रायपुर समेत अभनपुर, मंदिर हसौद, नवा रायपुर, आरंग, बिरगांव, बिलासपुर रोड समेत आसपास के क्षेत्रों में कई जमीन, मकान खरीदे हैं। ईडी के अधिकारियों ने जिला पंजीयक को पत्र लिखकर जल्द से जल्द पूरी संपत्तियों के दस्तावेज उपलब्ध कराने को कहा है।

दूरदर्शन एवं आकाशवाणी पर मान्यता प्राप्त दलों को निःशुल्क प्रसारण के लिए मिलेगा समय

रायपुर- भारत निर्वाचन आयोग द्वारा राष्ट्रीय दलों और संबद्ध राज्य के मान्यता प्राप्त राज्यीय राजनीतिक दल को दूरदर्शन और आकाशवाणी पर निःशुल्क प्रसारण के लिए समय उपलब्ध कराने के संबंध में दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं। मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों को दूरदर्शन एवं आकाशवाणी पर निःशुल्क प्रसारण के माध्यम से मतदाताओं को अपनी नीतियों और कार्यक्रमों, घोषणा पत्रों और प्रमुख मुद्दों के संबंध में अपने विचारों के बारे में जानकारी देने का अवसर प्राप्त होता है। निर्वाचकों के लिए भी विभिन्न दलों के नीति संबंधी मुद्दों को समझने के लिए यह सूचना का महत्वपूर्ण स्त्रोत होता है।

मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय से प्राप्त जानकारी के अनुसार विधानसभा निर्वाचन-2023 हेतु सभी राष्ट्रीय दलों और छत्तीसगढ़ में मान्यता प्राप्त राज्यीय दल को दूरदर्शन और आकाशवाणी के क्षेत्रीय नेटवर्क पर प्रचार के लिए प्रारंभिक रूप से 45 मिनट की एक समान अवधि उपलब्ध कराए जाने के भारत निर्वाचन आयोग के निर्देश हैं। साथ ही राजनीतिक दलों द्वारा पिछले विधानसभा निर्वाचनों या लोकसभा के पिछले साधारण निर्वाचनों ,जैसी भी स्थिति हो,में दलों के मतदान निष्पादन के आधार पर अतिरिक्त समय आबंटन का निर्णय आयोग द्वारा लिया जाता है। प्रसारण के लिए एक बार में 15 मिनट से अधिक का समय नहीं दिया जाएगा। राजनीतिक दलों को दूरदर्शन और आकाशवाणी पर प्रसारण के लिए निर्वाचन हेतु प्रत्याशियों की सूची के प्रकाशन के दिन से लेकर प्रत्येक चरण के मतदान दिवस के 2 दिन पहले तक दिया जाएगा।

छत्तीसगढ़ विधानसभा निर्वाचन-2023 में छत्तीसगढ़ में राजनीतिक दलों को प्रसारण के लिए दूरदर्शन पर कुल 629 मिनट तथा उसी प्रकार रेडियो पर प्रसारण हेतु कुल 629 मिनट निर्धारित किया गया है। इसमें सभी दलों के लिए अनुपातिक रूप से समय दिया गया है। उक्त दिशा निर्देशों के परिपालन में प्रसारण हेतु दिन एवं समय का निर्धारण मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय में मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों की उपस्थिति में दूरदर्शन एवं प्रसार भारती के अधिकारियों द्वारा लॉट निकालकर दिनांक 19 अक्टूबर 2023 को किया गया। प्रदेश में राजनीतिक दलों को प्रसारण की यह सुविधा दूरदर्शन और आकाशवाणी के क्षेत्रीय प्रसारण केन्द्रों तथा राजधानी रायपुर स्थित प्रसारण केन्द्र से दी जाएगी। इसे छत्तीसगढ़ में स्थित दूरदर्शन और आकाशवाणी के अन्य रिले केन्द्र भी प्रसारित करेंगे।

जनप्रतिनिधित्व अधिनियम-1951 के संशोधित प्रावधानों के अनुसार सभी मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों को केन्द्र सरकार के इलेक्ट्रॉनिक प्रसारण माध्यमों (दूरदर्शन एवं आकाशवाणी) पर प्रचार के लिए समुचित समय उपलब्ध कराए जाने का प्रावधान है। इस अधिनियम के तहत छत्तीसगढ़ में भी आगामी विधानसभा निर्वाचन के दौरान राष्ट्रीय और मान्यता प्राप्त प्रादेशिक दलों को सार्वजनिक (शासकीय) क्षेत्र के प्रसारणकर्ता प्रसार भारती निगम द्वारा प्रचार के लिए निःशुल्क समय उपलब्ध कराया जाएगा।

राजनीतिक दलों को आयोग द्वारा निर्धारित मापदंडों का कड़ाई से पालन करना होगा। प्रसारण के लिए रिकॉर्डिंग एवं उसकी ट्रांसक्रिप्ट (अनुलिपि) पहले ही जमा कराना होगा। आयोग ने प्रसारण की विषय वस्तु के लिए कड़े दिशा-निर्देश दिए हैं। प्रसारण में दूसरे देशों की आलोचना, धर्मों एवं समुदायों पर आक्षेपण, कोई अश्लील व अपमानजनक चीज, हिंसा भड़काना, न्यायालय की अवमानना, राष्ट्रपति एवं न्यायालय की सत्यनिष्ठा के प्रति निंदा, राष्ट्र की एकता, संप्रभुता एवं अखण्डता को प्रभावित करने वाली कोई चीज, किसी व्यक्ति का नाम लेकर कोई आलोचना करने की अनुमति नहीं होगी।

खनिज विभाग की बड़ी कार्रवाई, बिना रायल्टी पर्ची रेत, गिट्टी व फर्शी ले जाते 15 वाहन जब्त

रायपुर-   रेत घाटों व गिट्टी खदानों से अवैध परिवहन बंद होने का नाम ही नहीं ले रहा है। हालात ऐसे हैं कि लगातार खनिज विभाग द्वारा कार्रवाई की जा रही है, इसके बावजूद इस पर लगाम नहीं लग पा रही है। गुरुवार की देर रात फिर से 15 हाईवा गाड़ियों को बिना रायल्टी पर्ची रेत, गिट्टी और फर्सी का अवैध परिवहन करते पकड़ा गया है।

अफसरों के अनुसार इनमें से किसी के भी पास रायल्टी पर्ची नहीं पाई गई। इनमें 12 हाईवा में रेत, एक हाईवा में गिट्टी और दो हाईवा में फर्सी जब्त करने के साथ ही गाड़ियों को भी खड़ा करवा लिया गया है। यह पूरी खनिज पदार्थ खरोरा और मोहमेला से आ रहे थे, जिन्हें खरोरा में दो और तिल्दा में 13 गाड़ियों को जब्त किया गया है। जिनके वाहन मालिक कवर्धा और बेमेतरा जिले के बताए जा रहे हैं और सभी हाईवा ढंकी हुई यानी कि एलपी गाड़ियां हैं।

बीते दिनों संघ ने की थी हड़ताल

बीते दिनों कुछ दिनों तक हाईवा संघ ने कार्रवाई के दौरान गाड़ियों पर की जाने वाली कार्रवाई को गलत ठहराते हुए हड़ताल भी की गई थी। जिसकी वजह से कई दिनों तक रेत सहित अन्य सामग्रियों का परिवहन पूरी तरह से बाधित रहा और रेत के दामों में भी बढ़ोतरी हुई थी।

घाट खुलने से पहले भी जारी रहा परिवहन

बारिश के दौरान रेत घाटों को पूरी तरह से बंद रखने के निर्देश दिए गए थे, लेकिन इसके बावजूद रेत का अवैध परिवहन बंद नहीं रहा। कई क्षेत्रों में लगातार रेत का अवैध परिवहन करते ट्रकों को पकड़ा गया था। वहीं, अब इस आदेश को बाद भी नियमों का उल्लंघन करते हुए अवैध रूप से परिवहन किया जा रहा है।

रायपुर खनिज उप संचालक केके गोलघाटे ने कहा, अवैध परिवहन पर लगातार कार्रवाई की जा रही है। कल उसे खरोरा और तिल्दा क्षेत्र में कार्रवाई की गई है। उनके पास रायल्टी पर्ची नहीं पाई गई थी।