*बेटी बचाओं - बेटी पढाओं एवं महिला सशक्तिकरण पर विधिक शिविर का आयोजन*
ललितपुर। पहलवान गुरूदीन विधि महाविद्यालय पनारी, ललितपुर में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से अंतर्राष्ट्रीय बालिका दिवस के उपलक्ष्य में महाविद्यालय के सभागार मे बालिकाओं से संबंधित बालिकाओं के विधिक अधिकार, साक्षरता, लैंगिक समानता, बेटी बचाओं - बेटी पढाओं एवं महिला सशक्तिकरण आदि विषयो पर विधिक शिविर का आयोजन किया गया।
कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि डॉ0 वीरेन्द्र सिंह (अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी), डॉ0 स्वाती खरे (जिला महिला चिकित्सक), डॉ0 सौरभ सक्सेना (जिला पब्लिक हेल्थ स्पेशलिस्ट), श्री नन्दलाल सिंह (जिला प्रोबेशन अधिकारी), रश्मि श्रीवास्तव (किशोर - किशोरी काउन्सलर), सन्नो देवी (उपनिरीक्षक थाना कोतवाली), सुश्री निधि सिंह (एडवोकेट), डॉ0 सौरभ यादव (डायरेक्टर ग्रुप ऑफ कालेज), डॉ0 महेश कुमार झा (प्राचार्य प्रशिक्षण महाविद्यालय) एवं डॉ0 कमलेश मोर्य (प्राचार्य विधि महाविद्यालय) ने संयुक्त रूप से मॉ सरस्वती के प्रतिमा पर मार्ल्यापण एवं द्वीप प्रज्ज्वलन कर किया।
मुख्य अतिथि डॉ0 वीरेन्द्र सिंह ने बालिकाओं के विधिक अधिकारो के बारे मे बताया कि संविधान में महिलाओं को भी पुरुषों के समान अधिकार प्राप्त हैं। बालिकाओं के कल्याण व सुरक्षा के संबंध में अनेक अधिनियम बनाए गए हैं।
भारतीय दंड संहिता की धाराओं के अलावा बाल विवाह निषेध अधिनियम 2006, घरेलू हिंसा से संरक्षण अधिनियम 2005, यौन हिंसा से बच्चों का संरक्षण अधिनियम 2012 आदि हैं परंतु बालिकाओं के सशक्तिकरण के लिए आवश्यक है कि परिवारिक, सामाजिक, राष्ट्रीय, सभी स्तर पर प्रयास किया जाए।
बालिकाओं के स्वास्थ्य, शिक्षा, आत्मरक्षा पर ध्यान दिया जाना चाहिए। सामाजिक सोच व विचारधारा को बदलना चाहिए। बालिकाओं को समय देना चाहिए। जिससे वे भावनात्मक रूप से सशक्त हो सके तथा अपराध का शिकार न हो सके। उन्होंने महिलाओं के संबंध में उत्तर प्रदेश राज्य द्वारा चलाई जा रही विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं के बारे में जानकारी दी।
डॉ0 सौरभ सक्सेना ने बताया कि महिलाओं को कानून द्वारा अनेकों अधिकार दिए गए हैं। लेकिन जागरूकता की कमी है। महिलाओं को जागरूक करने का कार्य जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा किया जा रहा है। यदि कोई महिला मुकदमे की पैरवी आर्थिक स्थिति के कारण करने में असमर्थ है। तो उसे जिला विधिक सेवा प्राधिकरण में आवेदन देने पर निःशुल्क अधिवक्ता उपलब्ध कराया जाएगा।
डॉ0 स्वाती खरे ने बेटी बचाओ - बेटी पढ़ाओं अभियान के बारे मे बताया कि बेटियॉ परिवार, क्षेत्र व देश की शान होती है। आज बेटियॉ वे सभी कार्य करती है, जिन्हें पुरूष कर सकते है। बेटियॉ हर एक क्षेत्र में बराबर की सहभागिता निभा रही है।
लेकिन फिर भी समाज के कुछ क्षेत्रों में जागरूकता की कमी के कारण उन्हें वे अधिकार नहीं मिल पाते है जो उन्हें मिलने चाहिए। उनके साथ भेदभाव किया जाता है। इस भेदभाव को मिटाने के लिए सरकार के द्वारा समय-समय पर जागरूकता अभियान चलाया जाता है।
श्री नन्दलाल सिंह ने महिला साक्षरता पर प्रकाश डालते हुए कहा कि किसी भी राष्ट्र के सामाजिक और आर्थिक विकास में महिलाओं की भूमिका को अनदेखा नहीं किया जा सकता। महिला और पुरुष दोनों समान रूप से समाज के दो पहियों की तरह कार्य करते हैं और समाज को प्रगति की ओर ले जाते हैं। दोनों की समान भूमिका को देखते हुए यह आवश्यक है कि उन्हें शिक्षा सहित अन्य सभी क्षेत्रों में समान अवसर दिये जाये क्योंकि यदि कोई एक पक्ष भी कमजोर होगा तो सामाजिक प्रगति संभव नहीं हो पाएगी।
डायरेक्टर डॉ0 सौरभ यादव ने बताया कि देश के कई हिस्सों में अभी भी लड़की के जन्म का स्वागत नहीं किया जाता है। कई बार यह भी मामला प्रकाश में आता है कि लड़कियो के स्वास्थ्य, कल्याण, शिक्षा, अवसरों पर भेदभाव बरता जाता है।
उन्होने बताया कि बालिका यदि किसी भी प्रकार की विधिक सहायता चाहती है तो जिला विधिक सेवा प्राधिकरण में अपनी समस्या से अवगत करा सकती है। जिसका पूर्ण समाधान करने का प्रयास किया जाएगा। विधि प्राचार्य डॉ0 कमलेश मोर्य ने महिला सशक्तिकरण के बारे मे बताया कि महिला सशक्तीकरण को बेहद आसान शब्दों में परिभाषित किया जा सकता है।
इससे महिलाएं शक्तिशाली बनती है। जिससे वह अपने जीवन से जुड़े सभी फैसले स्वयं ले सकती है और परिवार और समाज में अच्छे से रह सकती है। महिलाएं शिक्षा, राजनीति, मीडिया, कला व संस्कृति, सेवा क्षेत्र, विज्ञान व प्रौद्योगिकी आदि क्षेत्रों में भागीदारी कर सकती है। कार्यक्रम के अंत मे प्रशिक्षण महाविद्यालय प्राचार्य डॉ0 महेश कुमार झा ने कार्यक्रम में पधारे हुए अतिथियों, प्रवक्तागणो व महाविद्यालय के सभी छात्र-छात्राओं को शपथ दिलायी व आभार व्यक्त करते हुए कहा कि बालक - बालिकाओं में किसी भी आधार पर लैंगिक भेदभाव नही होना चाहिए।
दोनों के साथ समानता का व्यवहार होना चाहिए और समानता का अवसर दिया जाना चाहिए। इस अवसर पर उपप्राचार्य रामलाल रैकवार, असि0प्रो0 शुभी जैन, असि0प्रो0 कल्पना बुण्देला, असि0प्रो0 उत्कर्ष जैन, असि0प्रो0 सतीश कुमार साहू, असि0प्रो0 नरेन्द्र प्रजापति, असि0प्रो0 अमित निरंजन, असि0प्रो0 प्रकाश विश्वकर्मा, असि0प्रो0 रमाकान्त सिंह, चन्द्रवती अहिरवार, पूजा कुशवाहा एवं विधि संकाय के सभी छात्र/छात्रा उपस्थित रहे। कार्यक्रम का सफल संचालन असि0प्रो0 गंगाराम विश्वकर्मा ने किया।
Oct 16 2023, 18:35