सर्वविद्या की राजधानी में साई कॉलेज के विद्यार्थियों ने देखा धर्म और विज्ञान, काशी से वाराणसी की यात्रा को किया आत्मसात
अम्बिकापुर- श्री साई बाबा आदर्श स्नातकोत्तर महाविद्यालय के एम.एससी बायोटेक्नालॉजी और बी.एससी तृतीय वर्ष के विद्यार्थियों ने सर्वविद्या की राजधानी काशी में धर्म और विज्ञान को एक साथ देखा, परखा और आत्मसात किया।
धर्म की नगरी काशी में बाबा विश्वनाथ और गंगा का गहरा नाता है। दशाश्वमेध की विरासत और गंगा घाटों की महिमा को विद्यार्थियों ने सुबह-ए-बनारस के साथ देखा। नमो घाट पर जहां आधुनिकता के साथ प्राकृतिक सौन्दर्य और शिल्प विधान दिखा तो गंगा में सीएनजी चालित नौका प्रदूषण को शून्य करती नजर आयी। प्रवासी पक्षिओं के बीच अपनापन दिखा।
विद्याथियों ने महात्मा बुद्ध की प्रेरणास्थली मूलगंध कुटी विहार, धर्म चक्र प्रवर्तन सूत्र और और उनकी उपदेश स्थली को देखा। थाई मंदिर के साथ सारनाथ विहार, धम्मेक स्तूप और चौखंडी स्तूप बौद्ध विरासत को परिलक्षित कर रहा था। संग्रहालय में अशोक की लाट अपने इतिहास के साथ खड़ी नजर आयी जिस पर चार शेर पहरेदार की तरह दिखे।
8विद्यार्थियों ने महामना की बगिया काशी हिन्दू विश्वविद्यालय के सयाजीराव गायकवाड़ ग्रंथालय, काशी विश्वनाथ मंदिर और भारत कला भवन को देखा। पुस्तकालय में जहां पुस्तकों और सुविधाओं की विशाल शृंखला दिखी तो विश्वनाथ मंदिर में धर्म और आध्यात्म की भव्यता परिलक्षित हुई। वनस्पति विज्ञान विभाग के माईक्रोबायलॉजी, बायोटेक्नालॉजी, सेट्रल रिसर्च लैब में विद्यार्थियों को प्रशिक्षण मिला। काशी हिन्दू विश्वविद्यालय के प्राध्यापक , शोध अध्येताओं ने शोध की बारीकियों से अवगत कराया। इस दौरान पोस्ट डॉक्ट्रल के शोधार्थियों ने बॉटेनिकल गार्डन का भ्रमण कराया।
इस दौरान कपूर, आजवाईन, लौंग, रूद्राक्ष, सीता माता का अशोक का पेड़, कल्प वृक्ष, औषधीय पौधों के बारे में जानकारी दी। परिसर की भव्यता और शैक्षिक परिवेश को देख कर विद्यार्थी मुग्ध हो गये। शैक्षिक भ्रमण के दौरान सहायक प्राध्यापक कमलेश साहू, अभिषेक कुमार, पल्लवी द्विवेदी और डॉ. अजय कुमार तिवारी ने सहयोग किया।
Jan 04 2025, 15:28